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Misc. Erotica मैं हसीना गज़ब की
चलते-चलते उसने मुझे बताया कि ‘ग्लोरी-होल’ आमतौर पर पब्लिक टॉयलेट के स्टालों के बीच की दीवारों में पाये जाने वाले छेद होते हैं। अगर बगल-बगल के दो स्टालों में मौजूद शख्स आपसी रज़ामंदी से इन छेदों के ज़रिये एक दूसरे का चेहरा देखे बगैर चुदाई-हरकतों में शरीक हो सकते हैं। पब्लिक टॉयलेट के अलावा ग्लोरी-होल अक्सर एडल्ट वीडियो देखने के प्राइवेट बूथों की दिवारों में भी पाये जाते हैं। वैसे तो ग्लोरी-होल्स का इस्तेमाल ज्यादातर गे-मर्द अपनी पहचान गुप्त रखते हुए एक दूसरे का लौड़ा चूसने या एक दूसरे की मुठ मारने के लिये करते हैं लेकिन औरतें भी अक्सर इन ग्लोरी छेदों के ज़रिये अपनी पहचान छिपा कर किसी अंजान शख्स का लौड़ा चूसने-सहलाने के लिये करती हैं। अगर लौड़े का साइज़ बड़ा हो तो इन छेदों के ज़रिये चुदाई भी हो सकती है।

सशा ने बताया कि इस तरह के ग्लोरी-होल अक्सर गंदे होते हैं और जरूरी नहीं कि ग्लोरी-होल के दूसरी तरफ कोई मर्द हर वक्त मौजूद ही हो या फिर उस मर्द की काबिलियत की भी कोई गारंटी नहीं होती। इसलिये वो मुझे एक महंगे ‘अप-स्केल’ जगह पर ले जा रही थी जहाँ हम एक शानदार केबिन किराये पर ले सकेंगी और दीवार के दूसरी तरफ कोई ऐरा गैरा नहीं होगा बल्कि हमारी पसंद का कोई प्रोफेशनल जिगोलो होगा।

थोड़ा दूर चलने के बाद हम एक सैक्स शॉप के बाहर रुकीं। खिड़की में कईं तरह के अश्लील पोस्टर लगे थे और “बेस्ट ग्लोरी होल प्राइवेट केबिन!” “सैटिसफैक्शन गारेंटिड” जैसे कईं निआन साइन लग थे। हम अंदर गये तो रिसेप्शन पर एक औरत मौजूद थी जिसने जरूरत से ज्यादा मेक-अप कर रखा था। सशा ने उससे “प्राइवेट डिलक्स केबिन विद टू होल्स” का रेट पूछा तो उस औरत ने टूटी-फूटी इंगलिश में कहा कि “मनी डिपेंड ऑन व्हॉट टाइप सर्विस यू वाँट!”

“वी वांट टू हायर अनलिमिटेड फोर वन आ‍उर विद द बिगेस्ट एंड थिकेस्ट यू हैव!

“दैट विल बी एइट हंड्रड यूरो फोर डिलक्स केबिन फोर वन आ‍उर एंड थ्री हंड्रड फोर एवरी एडिशनल थरटी मिनट्स!” वो औरत मुस्कुराते हुए बोली, “ड्रिंक्स एंड वीडियो ऑफ योर चॉइस इज़ फ्री विद दिस पैकेज!” फिर फोटो एल्बम खोल कर हमें दिखाते हुए बोली, “दीज़ एइट स्टड्स आर द बेस्ट वी हैव!” एलबम के उस पेज पर आठ आदमियों के छाती से घुटनों तक की नंगी तसवीरें थीं। हर तसवीर के नीचे लौड़े के साइज़, रंग, उम्र वगैरह की डीटेल थी। मैंने देखा कि वो आठों लौड़े नौ से बारह इंच लंबे और अच्छे खासे मोटे थे। हमने जो पैकेज चुना था उसके मुताबिक वो आठ लौड़े बदल-बदल कर हमारे लिये हाज़िर रहेंगे ताकि एक घंटे तक एक वक्त में बिना रुकावट उनमें से कोई भी दो लौड़े हमारी खिदमत में मौजूद हों।
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RE: मैं हसीना गज़ब की - by rohitkapoor - 23-04-2022, 08:08 PM



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