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Adultery माँ के कहने पर बेटे ने लिया बदला. (Revenge) (Completed)
#41
(26-06-2021, 05:29 PM)pawanqwert Wrote:  Thanks big brother. 
Aapne hum sab pathko ki khusi ke liye jald update denge .
Aapke Jaise lekhak Kam hi hote Hain Jo pathko ke liye jald se jald update dene ki koshish karte hain.aap un gine chune lekhako me ho Jo likhate bhi Acha Hain aur update dene me bhi deri Nahi karte Hain. Warna aksar Maine paya ki lekhak ya to ghatiya likhta ya matlab Acha Nahi likta aur agar likhta hai to bahut deri se update deta Hain.

Aapka bahut bahut aabhar Bhai kahani aur update ke liye.
Update dete rahiyega please aise hi.
Again thanks itni shreshth  aur manoranjak kahani likhne ke lite...

Thanks a lot...
Yours story means a lot to me and other readers.

 Ji  sab aap logo ki dua aur support hai.. Thanks... 

Mein aur jaldi se jaldi kahani deke dusri story pe soch rha hoon. Hope sabko pasand aayegi..
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#42
(26-06-2021, 05:49 PM)Aakashshah Wrote:  Ji  sab aap logo ki dua aur support hai.. Thanks... 

Mein aur jaldi se jaldi kahani deke dusri story pe soch rha hoon. Hope sabko pasand aayegi..

Welcome big brother
Bilkul Pasand aayegi aapki dusri kahani.iss kahani se you aapki lekhni Ka mai fan ho Gaya..

Likhte rahiye aise hee.
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#43
उसके बाद 

मैं:-(किचन में डिब्बे को देखते हुए) अरे माँ, वो क्या है?
माँ:-अरे वो तो वो निरज आया था,वो दे गया था कल शाम को। वो कुछ पॉवडर है ऐसा बोल रहा था।
मैं:- हां, मैं उस दिन पैसे देने गया था तब उसने बोला था।
माँ:-हा।

अब रात को खाने के बाद भावना अपने रूम मैं और हर्ष अपने रूम में सोने चले गए।

दूसरे दिन हर्ष कॉलेज निकल गया,और भावना को डिब्बे को देख याद आता है और वो एक गिलास मैं पाउडर डाल के दूध के साथ पी लेती है। अभी 10 बज रहे थे। तो अभी निरज के आने में समय था, तो वो अपना काम करने लग गयी थी।
अब 11 बजने में 15-20 मिनिट का टाइम था, और भावना को तो आज अभी से गरमाहट आ ने लगी थी।

वो सोच रही थी कि,


आज तो कुछ अलग सा ही अहसास हो रहा है,बहुत गर्म लग रहा है।मुझे क्या हो रहा है ये? चलो अभी निरज भी आता होगा में कपड़े पहन लेती हूँ।और  ऊपर रूम में जाके अपना कमीज निकालती है। और ब्रा भी निकाल देती हैं,और स्पोर्ट टी-शर्ट पहन लेती है।आज उसके हाथ खुद से अपने चुचे पर जा रहे थे। यह उसने नीचे से लैंगिंस निकाली और पैंटी भी निकाल दी। उसने देखा कि आज चूत पे पानी लगा हुआ है।उसका हाथ वहाँ भी चला ही गया। फिर पैंट पहन कर बाहर आई। आज उसको कुछ अजीब और कुछ गरम सा लग रहा था,तभी निरज आता है।

निरज:-जी आप तैयार हो?
माँ:-हाँ।
निरज:-आपने प्रोटीन ले लिया था ना?
माँ:-(अपने हाथों और होंठो को थोड़ा दबाते हुए) ह्म्म्म ले लिया है,,,......पर मम्म थोड़ा अजीब सा लग रहा है। गर्मी सी ज्यादा लग रही है।
निरज:- जी तभी आप अच्छे से एक्सरसाइज कर पाएंगी।
माँ:-जी।

भावना ने आज पिंक कलर का पहना था और नीचे फिर से ग्रे पहना था।
[img]<a href=[/img][Image: 60d73be0d506e.png] " />
[img]<a href=[/img]
अब निरज ने भावना को सीधे खड़े होके हाथ ऊपर करने को बोला। 

बाद मैं निरज ने पीछे से आके भावना के बूब्स के बाजू को पकड़ा और थोड़ा और ऊपर करो ऐसा करके दबा दिया।आज तो भावना पहले ही गरम थी,तो वो बस आहे भर रही थी।
 [img]<a href=[/img][Image: 60d73c3ee04d5.png] " />

फिर उसने एक पैर को दूसरे घुटने पर रखने को बोला, और पीछे से जाके नीचे बैठ गया, और अपना हाथ पीछे से लाके आगे चूत पे रख दिया। 

[img]<a href=[/img][Image: 60d73cb5d5760.png] " />
और थोड़ा जोर देखे दबा दिया। और भावना सिसकिया भरने लगी।भावना का आज बुरा हाल था,पूरी गरम हो चुकी थी।

फिर निरज ने डॉगी पोज़ में रहने को बोला,जो आप फ़ोटो में देख सकते है।
[img]<a href=[/img][Image: 60d73d7fa63ca.png] " />
 फिर पीछे से जेक उसने भावना की मुलायम गांड को दोनों हाथों से पकड़ा और मसलने लगा। भावना बिना किसी रूकावट के करने दे रही थी।

फिर निरज ने भावना को बैठने के पोज़ मैं करने को बोला। फिर जब भावना बैठती तब वो भावना की गांड को मसलता और जब ऊपर उठती तब चूत के हिस्से से दबाव देखे ऊपर उठता।

ये सब करते करते आज 12:30 बज गए थे। और फिर निरज के दोस्त का फ़ोन आया और वो निकलने लगा।

निरज:-कैसा लगा आज आपको?
माँ:-(थोड़ी सी सिसकारी लेते) मममम अच्छा लगा आज तो।बहूत मजा आया लेकिन गर्मी कुछ ज्यादा ही लग रही है।
निरज:-(शैतानी चेहरे से) जी ऐसा तो होगा ही।कल भी आप प्रोटीन ले लेना।
माँ:- हम्म्म्म।

अब निरज निकल गया।

इधर फिर से निरज का दोस्त पूछता है...

दोस्त:-क्या आज क्या किया?
निरज:- आज तो पूरा गरम कर दिया था।
दोस्त:- मतलब ?? वो तो तू रोज करता है।
निरज:- अबे नही,कल जो प्रोटीन देने गया था ना।
दोस्त:-हाँ
निरज:- उसी का कमाल है।
दोस्त:-क्या बक रहा है बे, उससे क्या होगा।
निरज:- उससे से सब मिलेगा।
दोस्त:-वो कैसे?
निरज:-(हस्ते हुए) उसमें सिर्फ प्रोटीन नही है,सेक्स बढ़ाने वाली दवाई भी है।
दोस्त:-सच में!! तूने तो कमाल ही कर दिया।
निरज:- अब साली सामने से चूत देगी।
दोस्त:-सही कहा।

और इधर भावना रोज की तरह नहाने चली गयी। आज उसको बहुत ज्यादा गर्मी लग रही थी। फिर वो खाना खा के सो गई,और शाम को हर्ष के  आने के बाद वो रात के खाने की तैयारी करने लगी, और रात को खाना खा के दोनों अपने अपने रूम मैं सो गए।

रात को भावना को नींद ही नही आ रही थी,उसकी गर्मी बढ़ती जा रही थी। उसकी चूत लगातार पानी छोड़ रही थी।
[Image: 22392828.gif?width=460]
 और एक हाथ अपने बूब्स पर जा रहा था और अपने होंठों को दांतों से चबा रही थी। थोड़ी देर बाद वो उठ के नीचे आती है और टॉयलेट में चली जाती है।और अंदर जाते ही, अपनी मैक्सी को कमर तक कर देती है और उसका हाथ अपने आप पैंटी नीचे करके चूत पे चला जाता है।और अपनी एक उंगली को पहले वो मुह में डालती है और फिर वो गीली उंगली अपनी चूत पे रखती है और उसको अंदर बाहर करने लगती है।
[Image: 24164123.gif?width=460]

 वो और ज्यादा गरम हो रही थी। वो धीरे धीरे सिसकियाँ भरने लगती है,  आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म मुझे येईईईईए क्या हो रहा है ममममममममम ,ओह्ह हहह। 


और उसी समय हर्ष भी उठता है और टॉयलट की तरफ आता है, वो देखता है कि डोर अंदर से लॉक है,वो खटखटाने ही वाला था कि उसको अंदर से आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म ऐसे आवाजे आती है।वो सोचता है कि अंदर माँ है, और उसको आज ये क्या हो गया ये क्या कर रही है, अब वो भी जवान लड़का था सब पता ही था कि अगर औरत अकेली हो और ऐसी आवाज निकले तो क्या हो रहा हो। 
 फिर वो ऊपर रूम में चला आता है और माँ के बाहर आने की राह देखता है,और सोचता है कि माँ को ऐसे करते आज पहली बार सुना हूँ। थोड़ी देर में भावना के बेडरूम का दरवाजा बढ़ हुआ,तो फिर हर्ष टॉइलट में जाता है, अब वो देखता है कि टॉयलेट के तरफ निकए फ़र्श पर थोड़ा गिला पानी लगा हुआ था, और वो ताजा था,

[img]<a href=[/img][Image: 60d73fc458544.jpeg] " />

तो वो सोचता है कि ये तो माँ का.....माँ ने आज तक कभी ऐसा नही किया,लेकिन चलो कोई बात नही। फिर वो रूम में जाके सो जाता है। 

फिर सुबह हर्ष उठ के निचे आता है और देखता है तो भावना  वो प्रोटीन पी रही होती है

मैं:- माँ में कॉलेज जा रहा हूँ।
माँ:-(नास्ता लाते हुए) बेटा, नास्ता करके जाओ।
मैं:-जी माँ, 
     माँ आपसे एक बात पुछु?
माँ:-बोल ना बेटा ?
मैं:- आप ठीक हो ना? किसी चीज़ की कोई जरूरत तो नही?
माँ:- अरे मेरा बेटा, मुझे क्या हुआ है, में तो अब पहले से ज्यादा ठीक हूँ, और मुझे किस की जरूरत, जो डॉक्टर ने दवाई दी थी,वो खा ही तो रही हूँ।
मैं:- जी माँ अब मैं चलता हूँ।

अब हर्ष घर से निकल जाता है,और अपने दोस्त के साथ बाइक पे बैठ के चला जाता है,और सोचता है,


माँ कल क्या सच में वो कर रही थीं? मुझे यक़ीन नही हो रहा। माँ से सीधे पूछ भी नही सकता। और ये सोचते सोचते हर्ष आने दोस्त के साथ कॉलेज पोहोंच गया।
 वहाँ पे आज उसके सारे दोस्तो का पिक्चर देखने जाने का प्रोग्राम था। लेकिन हर्ष बोलता है ,यार ये पिक्चर मैंने देख ली है,मुझे बोरिंग लगती है। तो उसके दोस्त ने बोला कि ठीक है तू घर चला जाना लेकिन अभी कैंटीन मैं तो चल। 


इधर रोज की तरह भावना फिर वो प्रोटीन लेने से गरम हो चुकी थी। और निरज आ गया। और वो दोनों पीछे चले गए।
आज भावना ने ब्लैक पैंट पहनी थी, जो आपको बता दूं,चूत के हिस्से से फट गयी थी क्यों कि उसका कपड़ा सॉफ्ट था। 
[img]<a href=[/img][Image: 60d740ea155cc.png] " />

अब भावना को फिर से लेटने को बोल के वो एक्सरसाइज करवाने लगता है,भावना तो थी ही पहले से गर्म। फिर निरज ने दोनों पैर पकड़ कर ऊपर किये तो चूत और ज्यादा दिखने लगी। छोटे छोटे बाल भी दिख रहे थे।अब निरज भी असज तो गर्म हो गया था। भावना को ये बात पता नही थी कि चूत के यहाँ से फट गया है। फिर भावना और ज्यादा गर्म हो चुकी थी, फिर निरज ने सोचा अब समय आ चुका है,



तो उसने

निरज:-(अपना हाथ चूत पे घूमते हुए) कैसा लग रहा है?
माँ:-बहुत मजा आ रहा है आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म

अब निरज ने चूत के दाने को दो उंगलियों से दबा दिया,जैसे ही दबाया, भावना जोर से चिल्लायी, आहहहहह....... मार डाला ममममम  और उसकी चूत ने थोड़ा पानी छोड़ दिया।
फिर निरज ने अपनी एक उंगली चूत के अंदर डाली और बोहोत धीरे धीरे से अंदर बाहर करने लगा,  भावना की चूत में  पहली बार किसी गैर मर्द की उंगली गयी थी, उनको और ज्यादा गर्मी होने लगी।

निरज:-(चूत मैं धीरे धीरे उंगली डालते हुए) मजा आ रहा है ना?
माँ:-(गुस्से में)क्या कर रहे हो ?

और निरज डर जाता है,और सोचता है कि अब ये तो गुस्सा हो गयी।

माँ:-क्या कर रहे हो ये????
निरज:-वो मैं... वो मैं........
माँ:-(सिसकियाँ लेते हुए) जोर से अंदर डालो ना।

 और निरज ये सुनके खुश हो जाता है और जोर जोर से उंगली डालने लगता है। और फिर भावना को फिर से कुत्तिया के पोज़ मैं कर के अपना हथौड़े जैसा लन्ड बाहर निकलता है और भावना की चूत पे पीछे से रगड़ता है। भावना अब और गर्म हो चुकी थी,
[img]<a href=[/img][Image: 60d74211ccb52.png] " />
और अब निरज भावना को किस करने लगता है,और साथ मैं चूत मैं उंगली भी,लेकिन तभी, भावना को याद आता है कि वो कहां पे है? और घर का डोर भी खुल है, तो 
माँ:-(उठते हुए) यहाँ नही।
निरज:-मतलब?
माँ:-( उठ के दौड़ के चली जाती है और दरवाजा बढ़ कर देती है।)
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#44
(26-06-2021, 08:39 PM)Aakashshah Wrote: उसके बाद 

मैं:-(किचन में डिब्बे को देखते हुए) अरे माँ, वो क्या है?
माँ:-अरे वो तो वो निरज आया था,वो दे गया था कल शाम को। वो कुछ पॉवडर है ऐसा बोल रहा था।
मैं:- हां, मैं उस दिन पैसे देने गया था तब उसने बोला था।
माँ:-हा।

अब रात को खाने के बाद भावना अपने रूम मैं और हर्ष अपने रूम में सोने चले गए।

दूसरे दिन हर्ष कॉलेज निकल गया,और भावना को डिब्बे को देख याद आता है और वो एक गिलास मैं पाउडर डाल के दूध के साथ पी लेती है। अभी 10 बज रहे थे। तो अभी निरज के आने में समय था, तो वो अपना काम करने लग गयी थी।
अब 11 बजने में 15-20 मिनिट का टाइम था, और भावना को तो आज अभी से गरमाहट आ ने लगी थी।

वो सोच रही थी कि,


आज तो कुछ अलग सा ही अहसास हो रहा है,बहुत गर्म लग रहा है।मुझे क्या हो रहा है ये? चलो अभी निरज भी आता होगा में कपड़े पहन लेती हूँ।और  ऊपर रूम में जाके अपना कमीज निकालती है। और ब्रा भी निकाल देती हैं,और स्पोर्ट टी-शर्ट पहन लेती है।आज उसके हाथ खुद से अपने चुचे पर जा रहे थे। यह उसने नीचे से लैंगिंस निकाली और पैंटी भी निकाल दी। उसने देखा कि आज चूत पे पानी लगा हुआ है।उसका हाथ वहाँ भी चला ही गया। फिर पैंट पहन कर बाहर आई। आज उसको कुछ अजीब और कुछ गरम सा लग रहा था,तभी निरज आता है।

निरज:-जी आप तैयार हो?
माँ:-हाँ।
निरज:-आपने प्रोटीन ले लिया था ना?
माँ:-(अपने हाथों और होंठो को थोड़ा दबाते हुए) ह्म्म्म ले लिया है,,,......पर मम्म थोड़ा अजीब सा लग रहा है। गर्मी सी ज्यादा लग रही है।
निरज:- जी तभी आप अच्छे से एक्सरसाइज कर पाएंगी।
माँ:-जी।

भावना ने आज पिंक कलर का पहना था और नीचे फिर से ग्रे पहना था।
[img]<a href=[/img][Image: 60d73be0d506e.png] " />
[img]<a href=[/img]
अब निरज ने भावना को सीधे खड़े होके हाथ ऊपर करने को बोला। 

बाद मैं निरज ने पीछे से आके भावना के बूब्स के बाजू को पकड़ा और थोड़ा और ऊपर करो ऐसा करके दबा दिया।आज तो भावना पहले ही गरम थी,तो वो बस आहे भर रही थी।
 [img]<a href=[/img][Image: 60d73c3ee04d5.png] " />

फिर उसने एक पैर को दूसरे घुटने पर रखने को बोला, और पीछे से जाके नीचे बैठ गया, और अपना हाथ पीछे से लाके आगे चूत पे रख दिया। 

[img]<a href=[/img][Image: 60d73cb5d5760.png] " />
और थोड़ा जोर देखे दबा दिया। और भावना सिसकिया भरने लगी।भावना का आज बुरा हाल था,पूरी गरम हो चुकी थी।

फिर निरज ने डॉगी पोज़ में रहने को बोला,जो आप फ़ोटो में देख सकते है।
[img]<a href=[/img][Image: 60d73d7fa63ca.png] " />
 फिर पीछे से जेक उसने भावना की मुलायम गांड को दोनों हाथों से पकड़ा और मसलने लगा। भावना बिना किसी रूकावट के करने दे रही थी।

फिर निरज ने भावना को बैठने के पोज़ मैं करने को बोला। फिर जब भावना बैठती तब वो भावना की गांड को मसलता और जब ऊपर उठती तब चूत के हिस्से से दबाव देखे ऊपर उठता।

ये सब करते करते आज 12:30 बज गए थे। और फिर निरज के दोस्त का फ़ोन आया और वो निकलने लगा।

निरज:-कैसा लगा आज आपको?
माँ:-(थोड़ी सी सिसकारी लेते) मममम अच्छा लगा आज तो।बहूत मजा आया लेकिन गर्मी कुछ ज्यादा ही लग रही है।
निरज:-(शैतानी चेहरे से) जी ऐसा तो होगा ही।कल भी आप प्रोटीन ले लेना।
माँ:- हम्म्म्म।

अब निरज निकल गया।

इधर फिर से निरज का दोस्त पूछता है...

दोस्त:-क्या आज क्या किया?
निरज:- आज तो पूरा गरम कर दिया था।
दोस्त:- मतलब ?? वो तो तू रोज करता है।
निरज:- अबे नही,कल जो प्रोटीन देने गया था ना।
दोस्त:-हाँ
निरज:- उसी का कमाल है।
दोस्त:-क्या बक रहा है बे, उससे क्या होगा।
निरज:- उससे से सब मिलेगा।
दोस्त:-वो कैसे?
निरज:-(हस्ते हुए) उसमें सिर्फ प्रोटीन नही है,सेक्स बढ़ाने वाली दवाई भी है।
दोस्त:-सच में!! तूने तो कमाल ही कर दिया।
निरज:- अब साली सामने से चूत देगी।
दोस्त:-सही कहा।

और इधर भावना रोज की तरह नहाने चली गयी। आज उसको बहुत ज्यादा गर्मी लग रही थी। फिर वो खाना खा के सो गई,और शाम को हर्ष के  आने के बाद वो रात के खाने की तैयारी करने लगी, और रात को खाना खा के दोनों अपने अपने रूम मैं सो गए।

रात को भावना को नींद ही नही आ रही थी,उसकी गर्मी बढ़ती जा रही थी। उसकी चूत लगातार पानी छोड़ रही थी।
[Image: 22392828.gif?width=460]
 और एक हाथ अपने बूब्स पर जा रहा था और अपने होंठों को दांतों से चबा रही थी। थोड़ी देर बाद वो उठ के नीचे आती है और टॉयलेट में चली जाती है।और अंदर जाते ही, अपनी मैक्सी को कमर तक कर देती है और उसका हाथ अपने आप पैंटी नीचे करके चूत पे चला जाता है।और अपनी एक उंगली को पहले वो मुह में डालती है और फिर वो गीली उंगली अपनी चूत पे रखती है और उसको अंदर बाहर करने लगती है।
[Image: 24164123.gif?width=460]

 वो और ज्यादा गरम हो रही थी। वो धीरे धीरे सिसकियाँ भरने लगती है,  आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म मुझे येईईईईए क्या हो रहा है ममममममममम ,ओह्ह हहह। 


और उसी समय हर्ष भी उठता है और टॉयलट की तरफ आता है, वो देखता है कि डोर अंदर से लॉक है,वो खटखटाने ही वाला था कि उसको अंदर से आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म ऐसे आवाजे आती है।वो सोचता है कि अंदर माँ है, और उसको आज ये क्या हो गया ये क्या कर रही है, अब वो भी जवान लड़का था सब पता ही था कि अगर औरत अकेली हो और ऐसी आवाज निकले तो क्या हो रहा हो। 
 फिर वो ऊपर रूम में चला आता है और माँ के बाहर आने की राह देखता है,और सोचता है कि माँ को ऐसे करते आज पहली बार सुना हूँ। थोड़ी देर में भावना के बेडरूम का दरवाजा बढ़ हुआ,तो फिर हर्ष टॉइलट में जाता है, अब वो देखता है कि टॉयलेट के तरफ निकए फ़र्श पर थोड़ा गिला पानी लगा हुआ था, और वो ताजा था,

[img]<a href=[/img][Image: 60d73fc458544.jpeg] " />

तो वो सोचता है कि ये तो माँ का.....माँ ने आज तक कभी ऐसा नही किया,लेकिन चलो कोई बात नही। फिर वो रूम में जाके सो जाता है। 

फिर सुबह हर्ष उठ के निचे आता है और देखता है तो भावना  वो प्रोटीन पी रही होती है

मैं:- माँ में कॉलेज जा रहा हूँ।
माँ:-(नास्ता लाते हुए) बेटा, नास्ता करके जाओ।
मैं:-जी माँ, 
     माँ आपसे एक बात पुछु?
माँ:-बोल ना बेटा ?
मैं:- आप ठीक हो ना? किसी चीज़ की कोई जरूरत तो नही?
माँ:- अरे मेरा बेटा, मुझे क्या हुआ है, में तो अब पहले से ज्यादा ठीक हूँ, और मुझे किस की जरूरत, जो डॉक्टर ने दवाई दी थी,वो खा ही तो रही हूँ।
मैं:- जी माँ अब मैं चलता हूँ।

अब हर्ष घर से निकल जाता है,और अपने दोस्त के साथ बाइक पे बैठ के चला जाता है,और सोचता है,


माँ कल क्या सच में वो कर रही थीं? मुझे यक़ीन नही हो रहा। माँ से सीधे पूछ भी नही सकता। और ये सोचते सोचते हर्ष आने दोस्त के साथ कॉलेज पोहोंच गया।
 वहाँ पे आज उसके सारे दोस्तो का पिक्चर देखने जाने का प्रोग्राम था। लेकिन हर्ष बोलता है ,यार ये पिक्चर मैंने देख ली है,मुझे बोरिंग लगती है। तो उसके दोस्त ने बोला कि ठीक है तू घर चला जाना लेकिन अभी कैंटीन मैं तो चल। 


इधर रोज की तरह भावना फिर वो प्रोटीन लेने से गरम हो चुकी थी। और निरज आ गया। और वो दोनों पीछे चले गए।
आज भावना ने ब्लैक पैंट पहनी थी, जो आपको बता दूं,चूत के हिस्से से फट गयी थी क्यों कि उसका कपड़ा सॉफ्ट था। 
[img]<a href=[/img][Image: 60d740ea155cc.png] " />

अब भावना को फिर से लेटने को बोल के वो एक्सरसाइज करवाने लगता है,भावना तो थी ही पहले से गर्म। फिर निरज ने दोनों पैर पकड़ कर ऊपर किये तो चूत और ज्यादा दिखने लगी। छोटे छोटे बाल भी दिख रहे थे।अब निरज भी असज तो गर्म हो गया था। भावना को ये बात पता नही थी कि चूत के यहाँ से फट गया है। फिर भावना और ज्यादा गर्म हो चुकी थी, फिर निरज ने सोचा अब समय आ चुका है,



तो उसने

निरज:-(अपना हाथ चूत पे घूमते हुए) कैसा लग रहा है?
माँ:-बहुत मजा आ रहा है आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म

अब निरज ने चूत के दाने को दो उंगलियों से दबा दिया,जैसे ही दबाया, भावना जोर से चिल्लायी, आहहहहह....... मार डाला ममममम  और उसकी चूत ने थोड़ा पानी छोड़ दिया।
फिर निरज ने अपनी एक उंगली चूत के अंदर डाली और बोहोत धीरे धीरे से अंदर बाहर करने लगा,  भावना की चूत में  पहली बार किसी गैर मर्द की उंगली गयी थी, उनको और ज्यादा गर्मी होने लगी।

निरज:-(चूत मैं धीरे धीरे उंगली डालते हुए) मजा आ रहा है ना?
माँ:-(गुस्से में)क्या कर रहे हो ?

और निरज डर जाता है,और सोचता है कि अब ये तो गुस्सा हो गयी।

माँ:-क्या कर रहे हो ये????
निरज:-वो मैं... वो मैं........
माँ:-(सिसकियाँ लेते हुए) जोर से अंदर डालो ना।

 और निरज ये सुनके खुश हो जाता है और जोर जोर से उंगली डालने लगता है। और फिर भावना को फिर से कुत्तिया के पोज़ मैं कर के अपना हथौड़े जैसा लन्ड बाहर निकलता है और भावना की चूत पे पीछे से रगड़ता है। भावना अब और गर्म हो चुकी थी,
[img]<a href=[/img][Image: 60d74211ccb52.png] " />
और अब निरज भावना को किस करने लगता है,और साथ मैं चूत मैं उंगली भी,लेकिन तभी, भावना को याद आता है कि वो कहां पे है? और घर का डोर भी खुल है, तो 
माँ:-(उठते हुए) यहाँ नही।
निरज:-मतलब?
माँ:-( उठ के दौड़ के चली जाती है और दरवाजा बढ़ कर देती है।)

Bhai itne acche mod par kahani ke update khatam ho Gaye.
Jaldi update dena 
bhai
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#45
निरज पीछे से अपना लन्ड हाथ में पकड़ कर आता है और भावना फिर से उसके लन्ड को देखने लगती है, और निरज किचन में भावना की पेंट और टी-शर्ट निकल फेकता है।और दोनों एक दूसरे के होंठों को चूमने लगते है। भावना भी न चाहते हुए सब करने लग गयी थी,गर्म जो हो गयी थी। लगभग 10 मिनिट एक दूसरे के मुँह मैं मुँह डालने के बाद दोनों फिर से एक दूसरे को देखने लगते है।
[Image: tenor.gif]
माँ:-यहाँ नही,मेरे बेडरूम में चलो।
निरज:-(भावना को गोद में उठा के ऊपर ले आता है और बेड पे रखता है) आंटी, ये लन्ड चूस दो।
माँ:-(अजीब चेहरा बनाती है लेकिन हवस तो उसमें भी आ गयी थी।) 



और वो निरज का लन्ड को पहले हाथो से पकड़ती है, और फिर अपनी जीभ से लन्ड की टोपी को चाटती है।फिर धीरे से सिर्फ लन्ड की टोपी को मुह मैं रख कर चूसने लगी, 
[img]<a href=[/img][Image: 60d74426e3a5a.jpeg] " />
फिर धीरे धीरे पूरा लन्ड गले तक ले लिया। और ब्लोजॉब देने लगी,पूरे रूम में सिर्फ घुघुघयघु गच्च गच्च गच्च आवाजे आ रही थी।

फिर निरज ने भावना के पैर फैला के चूत पे मुह रख दिया और  जोर से चाटने लगा। भावना निरज के सर को पकड़ के और जोर से दबा रही थी।
[img]<a href=[/img][Image: 60d744be9f8bc.png] " />
 फिर निरज ने लन्ड भावना की चूत पे सेट किया,और अंडर घुसाने ही वाला था कि भावना पीछे हो गयी


माँ:-(टेन्सन मैं) तुम वो ले आओ।
निरज:-क्या?
माँ:-अगर बच्चा हो गया तो?
निरज:-नही होगा।
माँ:-नही।
निरज:-(अपनी पैंट की जेब से कॉन्डोम निकलते हुए) ये देखो अब खुश।
माँ:-(हस्ते हुए) हां अब तड़पाओ मत डाल दो।

अब निरज ने कॉन्डोम लगाया और फिर से चूत पर लन्ड सेट किया और घिसने लगा।उधर भावना हहहह मममममम उम्म करने लगी थी। भावना की चूत मैं शादी के बाद आज पहली बार  लन्ड जाने वाला था,उसकी चूत टाइट हो गयी थी। फिर  निरज ने लन्ड की टोपी को चुत के अंदर घुसाया।
[Image: images?q=tbn:ANd9GcSFimjEyMsJgoH1VyavSxL...A&usqp=CAU]


माँ:- ओययययययय माँ मर गयी। मममममम हहह

और निरज फिर से थोड़ा आगे पीछे  करने लगा। अब निरज ने थोड़ा जोर देते हुए आधा लन्ड घुसेड दिया था।और धीरे धीरे करके उसे पूरा लन्ड घुस दिया । अब तो भावना के होश उड़ गए,उसका लन्ड चूत की गहराई तक पोहोंच गया था।
[Image: aae55e373d887521e99850c8b7234ede.gif]
निरज ने आगे पीछे लन्ड किया और बाद में लन्ड बाहर निकाल दिया।

माँ:-(गुस्से में)क्या हुआ? रुको मत।
निरज:-(प्लानिंग के हिसाब से) मुझे ये रोज करने देगी?
माँ:- अभी कुछ मत पूछ प्लीज हाथ जोड़ती हूँ,अंदर डालो ।
निरज:-(चुत के दाने को मसलते हुए) नही पहले मेरी बातों का जवाब दो।
माँ:- आहहहहहहहहहह,,......मम्ममम्मम्ममम्म तुम्हे जो करना है कर लेना,बस अभी रुको मत।

और निरज वो बोल के वापस करने लगता है।और वापस चुत  के लन्ड सेट करता है और बाहर निकाल के फिर रुक जाता है।

माँ:-(गुस्से में) प्लीज हाथ जोड़ती हूँ ,ऐसा मत करो।मैं मर जाउंगी,अंदर डालो।
निरज:-(फोन का वीडियो न करते हुए) बोल की तू अपनी मर्जी से ये कर रही है।
माँ:-(बिना होश में ) मैं सब अपनी मर्जी से कर रही हूँ, अब प्लीज अपना लन्ड  मेरी चुत मैं डालो।

अब निरज का काम यहां पे हो गया था।और निरज जोरदार चुदाई में लग जाता है। निरज ने वीडियो इस लिए बना लिया ताकि अब भावना उसके हाथ में रहे।

अब आपको याद हो तो, हर्ष आज जल्दी घर आने वाला था। उसके दोस्त पिक्चर देखने जा रहे थे तो। अब वो घर आया। उसने देखा घर पे आज दरवाजा बंद है।और निरज की बाइक तो यही पे है। चलो पीछे की तरफ जाता हूँ शायद वहाँ पे होंगे। वहां देखा तो कोई भी नही था,तो उसने सोचा कि शायद एक्सरसाइज हो गयी होगी तो वो लोग अंदर बैठे होंगे।
और जिस जगह वो लोग रोज एक्सरसाइज करते है वहाँ कुछ पानी गिरा हुआ दिखा, तो हर्ष को कुछ गलत तो लगा लेकिन वो सोचते हुए वापस दरवाजे के पास आ गया,और दरवाजे की घँटी बजायी।

जैसे ही घँटी सुनी, इधर भावना और निरज चोंक जाते है और निरज जल्दी से अपना विर्य भी गिर देता हैं कॉन्डोम में और भावना भाग के जल्दी से अपने शरीर को साफ करती है और बैडरूम से एक कुर्ती,और लेगिंस पहन लेती है,बिना ब्रा  पैंटी के।और निरज भी अपना पैंट ऊपर करके कॉन्डोम को विन्डो से बाहर फेके देता है और जल्दी से दोनों नीचे आ जाते है।

ये सब कुछ बस 2 ,3 मिनीट में कर दिया।और हर्ष सोचता है कि दरवाजा खोलने में आज ज्यादा वख्त लग गया।

मैं:-माँ क्या कर रही थी कितनी देर लगादी?
माँ:-(घबराते हुए) बेटा, तू! आज इतनी जल्दी आ गया।
मैं:-हाँ माँ लेकिन आप दरी हुई क्यों है?
निरज :-जी वो अभी एक्सरसाइज करके बैठी न इस लिए।
मैं:-(अंदर आते हुए) जी ।
निरज:-जी मैं चलता हूँ।
माँ:-(थोड़ी स्माइल देते हुए) जी।


अब माँ दरवाजा बंद करने जाती है तब हर्ष देखता है कि,माँ ने तो अभी नार्मल कपड़े पहने है,और ये किचन में अपनी पैंट और टी-शर्ट ऐसे कैसे पड़ी है। और माँ से यही बात पूछने वाला होता है।

मैं:-माँ , ये आपके कपड़े........

 और तभी फिर से दरवाजे की घँटी बजती है।

माँ:-(दरवाजा के पास जाते हुए) अब कोन आ गया।
निरज:- जी वो मेरा फोन मिल नही रह।
माँ:-कहा रख दिया था आपने ?
निरज:-याद नही कहा रख दिया था।
माँ:- हाँ, वो आपका फोन तो मेरे बेडरूम में है ना।
निरज:-हां।

और तभी भावना और निरज को याद आता है कि उसका बेटा हर्ष भी अभी यहाँ बैठा है।और हर्ष सोचते हुए

मैं:-निरज तुम्हारा फोन माँ के बेडरूम में कैसे?
निरज:-(हड़बड़ा जाता है और ) वो ... मैं
माँ:-(निरज की बात को काटते हुए) बेटा वो उस दिन वो प्रोटीन का डिब्बा लाया था न उसके पैसे देने थे तो ऊपर लेने बुलाया था।

भावना बात को संभाल लेती है और निरज फोन लेके चला जाता है,और बाद मैं

माँ:-बेटा तुम खाना खा लो।मुझे नींद आ रही है।
मैं:-जी ठीक है माँ।
माँ:-(किचन के कपड़े देखते हुए उसको बाथरूम में रख देती है)

और खाना देखे ऊपर सोने चली गयी।



Ab kal aapko janne ko milega ki bete ko ab shak hone laga hai. To wo apna shak kaise dur krega...
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#46
(26-06-2021, 09:03 PM)pawanqwert Wrote: Bhai itne acche mod par kahani ke update khatam ho Gaye.
Jaldi update dena 
bhai

Nhi aisa nahi hai lekin  1 baar mein 10 photos hi daal sakte hai to thoda adjust krne ke liye thode thode bhago mein diya hai...
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#47
इधर हर्ष के दिमाग में कुछ और ही दौड़ रहा था।  आज माँ ने दरवाजा बंद रखा और वो दोनों पीछे के तरफ बाहर भी नही थे। फिर वो खाना खाते और सोचने लगता है।

जब माँ ने दरवाजा खोला तो वो कमीज़ और लेगिंस मैं थी। लेकिन माँ के वर्कआउट के कपड़े किचन मैं कैसे? फिर खाना खाने के बाद उसने सोचा कि माँ को पूछता हूँ ।और वो माँ के कमरे के पास जाता है,तो दरवाजा थोड़ा खोल के देखा  तो माँ सो रही थी
[img]<a href=[/img][Image: 60d7f7d3cd94f.jpeg] " />
 और आज उसका बेड थोड़ा बिखरा हुआ सा था ।फिर वो अपने कमरे में चला गया। फिर थोड़ी देर बाद उसको फिर से वही बाते दिमाग में घूमने लगी, तो उसने न चाहते हुए एक काम किया।

वो बाथरूम मैं गया और अपनी माँ के कपड़े को देखने लगा। और पहले जब टी-शर्ट उठायी और देखी तो पसीना ही लगा हुआ था,और उसकी महक हर्ष को थोड़ा पागल कर करने लगी थी। और जब उसका वो ब्लैक पैंट हाथ में लिया और देखा कि कुछ मिले, लेकिन कुछ नही मिला और वो निकए रखने ही वाला था  कि उसको वो छेद दिखा। उसकी हालत खराब हो गयी, वो सोचने लगा कि माँ का ये तो फटा हुआ है,क्या आज माँ ने निरज के सामने........

सब सोचता है तभी दरवाजे की घँटी बजी, और हर्ष जल्दी से दरवाजा खोलने गया। देखा तो उसके पापा आ गए थे।

माँ:-(बैडरूम से नीचे आते हुए) आ गए आप।
पापा:- हाँ,
मैं:- पापा कैसी रही मीटिंग?
पापा:- ठीक रही।
माँ:-(किचन से पानी लाते हुए) (आज भावना की चूत मैं लन्ड जाने की वजह से वो थोड़ा लंगडा के चल रही थी।) ये लीजिये पानी।
पापा:- ( पानी लेते हुए) भावना क्या हुआ ? पैर में मोच आयी है क्या?
माँ:-(थोड़ा घभराते हुए) जी नही। वो रोज की एक्सरसाइज से थक जाती हूँ।
पापा:- हाँ, कोई बात नही,अभी 1 हफ्ते और कर लो बाद में मत करना।
माँ:- जी ठीक है।

अब प्रकाश(पापा) फ्रेश होकर थोड़ी देर सो जाते है और भावना किचन में काम करने लगती है। लेकिन हर्ष के दिमाग में वो सब बातें चल रही थी। उसको कुछ सूझ नही रहा था, और वो रोज कॉलेज बंक करके देख भी नही सकता कि क्या हो रहा है। तो वो सीधा पापा की बाइक की चाबी लेके बाजार में चला गया। उसने  ना  चाहते हुए ये करने का सोचा।
 और वो एक दुकान में गया।

मैं:-अंकल कोई अच्छा सा कैमरा है छोटा सा जो कही पे भी छिपा सके?
अंकल:-क्या करने वाला है?
मैं:-(थोड़ा डरते हुए)  अरे अंकल दोस्त के साथ मस्ती करनी है।
अंकल:-( spy camera दिखाते हुए) ये देखो ये इतने छोटे कैमरे है,
मैं:- ये अच्छा है,कितने का है?
अंकल:-ये 2000 हजार का है।
मैं:-महंगा तो है।


मैं:-अच्छा अंकल माइक्रोफ़ोन होगा?
अंकल:-(निकाल कर देते हुए) ये है।
मैं:-ये कितने का है?
अंकल:-ये तो सस्ता है,500 का।लेकिन हां ज्यादा नही चलेगा।
मैं:- कोई बात नही देदो।
अंकल:-ठीक है। और इसमें मेमोरी कार्ड साथ मैं है।
मैं:- जी ।

और हर्ष पैसे देखे माइक्रोफ़ोन लेके घर आ गया। अब रात को खाना खाने के बाद सब के सोने के बाद हर्ष ने सोचा कि माइक्रोफोन कहां लगाऊँ? और फिर उसे सोचा कि वह पीछे बाहर एक जगह छुपा देता हूँ। और रात को वो नीचे गया और एक जगह पे माइक्रोफोन छुपा दिया। फिर वो जाके सो गया। फिर सुबह वो उठा और नीचे आया। अब उसको वो रेकॉर्ड ऑन करना बाकी था। और वो चुपके से जा के ऑन कर दिया।और फिर वो कॉलेज चला गया। अब कॉलेज जाना भी उसका जरूरी था।फिर प्रकाश भी निकल गया। और भावना ने फिर से वो प्रोटीन ले लिया,और थोड़ी देर में वो फिर से गर्म हो गयी।


अब इधर निरज 11 बजे आ गया। और हॉल में बैठे दोनो।

निरज:-(हस्ते हुए) आज कोनसी एक्सरसाइज करोगे?
माँ:-(शरमाते हुए) क्या आप भी।
निरज:-आज भी कल वाली एक्सरसाइज करनी पड़ेगी।
माँ:-(हस्ती रही कुछ नही बोली)
निरज:-(भावना को उठाके उसके बैडरूम मैं ले जाते हुए) अब से आपकी ये वाली एक्सरसाइज शुरू होगी।
माँ:-ध्यान रखना ,कल पकड़े जाने वाले थे।

अब निरज कपड़े खोल के लन्ड पे कॉन्डोम लगता है।और तभी
माँ:-(थोड़ा निराश होते हुए) ये गलत है।
निरज:-आप मजे करो न।
माँ:-लेकिन.....
निरज:-(लन्ड हाथ में पकडाते हुए) तुम गरम हो रही हो ना?
माँ:-(लन्ड को देखते हुए) हम्म।।

अब वो दोनों ने फिर से सब शुरू कर दिया।
अब ऐसे ही आज भी चुदाई हुई। वहाँ पे हर्ष क्लास में बैठ बैठ के सोच रहा था कि क्या हो रहा होगा? और दिल बैचेन हो रहा था।
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#48
फिर घर मैं 1 बज गए होंगे,निरज फ्रेश हो के चलने लगता है
निरज:-(भावना को किस करते हुए) चलता हूँ।कल आऊंगा।
माँ:-(खुश होते हुए) हम्म।जी।

अब शाम को हर्ष ने आते ही पहले वो माइक्रोफोन मैं से मेमोरी कार्ड ले आया और अपने रूम में बैठ कर मोबाइल में कार्ड डाल कर 10 बजे के बाद का सुनने लगा। उसने पूरे 3 घंटे तक सुना लेकिन कुछ भी आवाज नही आयी।उसे सोचा कि बाकी हवा की आवाज और जो बाहर सब्जी वाले ने आवाज लगते है वो आवाज तो आयी लेकिन ये आवाज क्यों नही आई? या फिर आज निरज आया ही नही होगा। हाँ शायद आज नही आया होगा । और वो टेंशन फ्री होक नीचे माँ के पास गया।

मैं:-माँ आज निरज नही आया था क्या?
माँ:-(थोड़ा धीरे से बोलते हुए) हा,, हा आया था  ना बेटा।
मैं:-कैसे चल रहा है आपका?
माँ:- अच्छा है सब।

अब  हर्ष अपने रूम में चला जाता है और फिर सोचने लगता है कि ये क्या हो रहा है।और निरज आया था तो रेकॉर्डिंग मैं क्यों नही है। फिर वो अपना कॉलेज का असाइनमेंट लिखने लगा। वो पीछे बालकनी में बैठ के लिख रहा था और तभी हवा आने की वजह से एक पेज उड़ कर बाहर गिर गया।वो लेने निकए गया, और पेज ले के आ रहा था कि माँ के विंडो के ठीक नीचे उसको एक कंडोम मिला जिसमे वीर्य सूखा पड़ा था। 
[img]<a href=[/img][Image: 60d7f8b1e3366.jpeg] " />
ये देख हर्ष सोचने लगा कि ये क्या और ये इस जगह कैसे? और इतने सालों में ये पहली बार यहां पे ऐसे है। उसको कुछ गडबड लगने लगी। उसने सोचा कि ये ठीक माँ पापा की विंडो के नीचे है। उसके पापा तो ये नही कर सकते।लेकिन माँ और निरज ............

हर्ष ने सब कुछ सोचने का बढ़ किया और अपने दोस्तों से कुछ पैसे लेके फिर वही दुकान में गया और वो 2000 वाला कैमरा ले आया। अब उसको वो कैमेरा माँ के रूम में लगाना था।अब रात को जल्दी से खाना खा के वो जल्दी रूम में जा रहा हूँ बोल के माँ के रूम में चला गया।और सोचा कि कहा पे लगाऊँ? और तभी उसने सोचा कि बेड के ठीक सामने ऊपर जहा बल्ब था उसके पास फिट कर दिया और ऑन कर दिया।और जल्दी से अपने रूम में जाके सो गया।

दूसरे दिन वो उठा और कॉलेज के लिए निकल गया।और प्रकाश भी कॉलेज के लिए निकल गए। अब कॉलेज में पूरा दिन जैसे तैसे गुजारने के बाद हर्ष जल्दी से घर आता है और चाय नास्ता कर के बैठ जाता है।फिर भावना बर्तन धोने चली गयी।तो हर्ष जल्दी से रूम में गया और उस मैं से भी मेमोरी कार्ड लेके अपने रूम में चला गया और मोबाइल में डाल कर देखने लगा।और जब उसने देखा कि 11 बजे बैडरूम का दरवाजा खुला और जो देखता है वो देख के हर्ष की आँखों में आँशु आ जाते है।उसके पैरों तले से जमीन खिशक जाती है।

निरज भावना को गोद में उठा के बेडरूम में रखता है और फिर दोनों कपड़े निकाल देते है और किस करने लगते है।और फिर निरज कॉन्डोम लगता है और भावना उसका लन्ड मुह मैं लेती है।ये देख के हर्ष का गुस्सा बढ़ जाता है। फिर वो माँ और निरज की पूरी चुदाई देखता है। 
[Image: porn-gifs-fuck.gif]
अब उसको गुस्सा तो आता है लेकिन वो सोचता है कि माँ भी अपनी मर्जी से ये सब कर रही है।वीडियो में देख के साफ पता चल रहा है। फिर तो उसको चैन नही पड़ता। फिर वो फिर से मेमोरी से वीडियो लेके वापस कार्ड वही पे लगा देता है और रेकॉर्डिंग ऑन कर देता है,और नीचे जाके माँ से बात करता है।
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#49
मैं:-माँ
माँ:-हाँ, बेटा  बोलो?
मैं:-माँ आपका जिम कैसा चल रहा है?
माँ:-(थोड़ा खुश होते हुए) बेटा मजा आता है ।
मैं:-माँ ,निरज अच्छे से सब करवाता है ना?
माँ:- वो तो बहूत अच्छा लड़का है।
मैं:-माँ अगर कोई प्रॉब्लम हो तो मुझे बता सकती हो।
माँ:-(बेटे के सर पर हाथ घूमते हुए) बेटा, मुझे क्या प्रॉब्लम होगी भला?
मैं:-नही माँ आपको कुछ भी बताना हो तो मुझे बताना।
माँ:- ठीक है बेटा, कुछ भी ऐसा हो तो कहूंगी।

अब हर्ष सोचता है कि माँ अपनी मर्जी से ये सब कर रही है शायद तभी कुछ नही बोल रही। मैंने सोचा कि अगर निरज को अब मना कर देना चाहिए। फिर जब रात को सब खाना खा रहे थे तब ...


मैं:-माँ अब तो आपकी सेहत अच्छी है ना?
माँ:-(ख़ुशी से) हां, बेटा, अब तो मैं बिलकुल फिर हूँ।
पापा:-चलो अच्छी बात है।
मैं:-माँ तो फिर अब निरज को मना कर देते है,अब आपको भी तो आ गया होगा कि क्या करना है आप खुद भी कर सकती हो अब तो ।
माँ:-(थोड़ा शॉक होते हुए) हाँ...... वो मुझे वो....
पापा:- सही बोल रहा है बेटा। तुम क्या बोलती हो भावना?
माँ:-(थोड़ा मायूस होते हुए) जी, जैसा आप कहे।
मैं:- मैं कल सुबह जल्दी से कॉल करने मना कर दूंगा।
पापा:- हाँ।

अब खाना खाने के बाद सब सो गए और सुबह 8 बजे ही हर्ष ने निरज को फोन करके मना कर दिया।निरज ने भी हाँ बोल दिया।  अब रोज की तरह हर्ष कॉलेज चला गया,वो सोच रहा था कि मना तो किया है लेकिन वो जरूर आएगा। 
अब शाम को घर जाके फिर से देखता है तो फिर से वो आया हुआ था। मतलब ना वो समजने वाला था ना माँ। अब उसने सोचा कि वो क्या करे? माँ से बात भी नही कर सकता।और पापा को पता चल गया तो तो बुरा हाल होगा।

अब 5,6 दिन निकल गए।एक दिन जब निरज आया।और फिर से बेडरूम में गए।और 

निरज:-आज बिना कॉन्डम के करने दो ना।
माँ:-नही ,नही, कभी भी नही।
निरज:-मान जा ना।
माँ:-नही बोला ना।मेरे घरवालो ने अब तुम्हे मना किया है फिर भी तुम आते ही और मैं मना नही करती इतना काफी है।
निरज:-ठीक है पानी ले ना।
माँ:-(नीचे किचन में जाते हुए) हाँ लाती हूँ।तुम पहन लो।
निरज:-हम्म।

अब भावना पानी लाती है और निरज को देती है और फिर निरज भावना को बेड पे लिटा के चुत के अंदर लन्ड डालने लगता है।वो जोर जोर से आगे पीछे कर रहा था,
[Image: 0201.gif]
भावना भी चिल्ला रही थी अहह यस यस यस डालो और अंदर डालो।ममममममम मजा आ रहा है। वो दोनों मजे से चुदाई कर रहे थे कि भावना के फोन की रिंग बजी।

निरज:-(गुस्से में) अब ये को है?
माँ:-(चुप करते हुए) सू..... मेरे पति है।अभी अंदर मत डालना।
निरज:-नही तुम बात करना मैं धीरे धीरे डालता रहूंगा।
माँ:-(गुस्से में) नही।
माँ:-(फ़ोन उठाते हुए) जी अहह।
पापा:-भावना आज मेरी एक फाइल घर पे ही रह गयी है तुम आ सकती हो क्या देने?
माँ:- मम्म मैं अभी? आहहहह
पापा:-क्या हुआ भावना? ऐसी आवाजे क्यों निकल रही हो क्या हुआ है?
माँ:-(निरज लन्ड डाले ही जा रहा था) जी वो थोड़ा पैर दर्द कर रहे है तो गर्म पानी डाल रही हूँ।ममममम
पापा:- क्या तुम आ रही हो क्या?

अब बाते हो रही थी कि निरज से रुका नही गया और उसने वीर्य छोड़ दिया।और जैसे ही छोड़ा 
[Image: pussy-creampie-gifs.gif]
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#50
माँ:-(याद नही था को फ़ोन पे उसका पति है) ये क्या किया निरज लगता है कॉन्डोम फैट गया,तुम्हारा वीर्य अंदर चला गया।
निरज:-जल्दी से लन्ड निकल लेता है।
पापा:-(गुस्से में) क्या बोला तुमने भावना? तुम क्या कर रही हो? किसके साथ हो? वो निरज के साथ तुम क्या कर रही हो? मैं अभी घर पर आता हूँ।
माँ:-( प्रकाश फोन काट देता है) सुनिए जी।
निरज:-क्या हुआ?
माँ:- पकड़े गए।मुझे याद गई नही रहा कि मेरे पति फोन पे थे। वो यहाँ आ रहे है।
निरज:- अब क्या करे?
माँ:- तुमने मेरे अंदर वीर्य क्यों डाला?
निरज:-गलती से कॉन्डोम फट गया।
माँ:-(हैरान हिट हुए) क्या? अब क्या होगा? हर्ष के पापा अभी घर आते ही होंगे ।और तुमने हम दोनों का बच्चा भी मेरे अंदर डाल दिया है। है भगवान अब क्या होगा?
निरज:- तुम चिंता मत करो।


और तभी फिर से प्रकाश का फोन आता है। भावना देख के डर जाती है और फोन नही उठाती, लेकिन फोन दोबारा आता है तो डर के मारे उठाती है।

माँ:-(डरते हुए) हेलो।
फोन पे:- जी मैं हॉस्पिटल से बोल रहा हूँ।जी आपकी अभी इस आदमी से लास्ट मैं बात हुई तो सोचा आपको फोन करु।
माँ:-जी क्या मतलब? मेरे पति का फोन आपके पास कैसे आया को है आप?
फोन पे:- जी मैं हॉस्पिटल से बात कर रहा हूँ।और आपके पति का एक्सीडेंट हो गया है। बोहोत गंभीर हालत में है।
माँ:- क्या?  कोनसी हॉस्पिटल में है?
फोन पे:- जी मैं ******** हॉस्पिटल से बोल रहा हूं।आप जल्दी आ जाये।

निरज:-क्या हुआ?
माँ:-हर्ष के पापा का एक्सीडेंट हो गया है।
निरज:- चलो चलते है।


अब वो दोनों हॉस्पिटल चले गए और  उसने अपने बेटे को भी फोन करके बोल दिया, 

भावना और निरज हॉस्पिटल में जाके 
डॉक्टर:- जी आप है प्रकाश की पत्नी?
माँ:- जी ।क्या हुआ है मेरे पति को?
डॉक्टर:- जी जो आदमी उसको यहाँ लाया वो बोल रहा था कि  आपके पति को बड़ी जल्दी थी।वो बहुत तेज़ी से बाइक चलाके कही पे जा रहे थे,और ध्यान ना देने की वजह से ट्रक से टक्कर हो गयी।
माँ:-(निरज की और देखते हुए) अब कैसे है वो? मुझे मिलना है।
डॉक्टर:-देखिये आप अभी नही मिल सकते।और उनकी हालत अभी थोड़ी गंभीर है।

माँ:-(परेशान होते हुए) आज मुझसे कितनी बड़ी गलती हो गयी।
निरज:-कोई बात नही अब।
माँ:- सब तुम्हारी वजह से हुआ ना तुम फोन पे थी तब अंदर डालते ना तुम घर पे आते तो ऐसा नही होता।
निरज:- अब मुझ पर क्यों डाल रही हो तुम? तुम ही जोर से चिल्ला पड़ी थी।
माँ:-तो और क्या करती?  अब तुमने पेट में बच्चा जो ठहरा दिया है।

अब इधर हर्ष भी आ जाता है।और वो भी सब माँ से पूछने लगता है।वो निरज को साथ देख गुस्सा तो आता है,लेकिन उसको अभी अपने पापा की चिंता थी।तो वो माँ से सब पूछने लगता है।

मैं:-माँ क्या हुआ पापा को?
माँ:-(रोते हुए) बेटा, मुझे माफ़ कर दे।
मैं:-क्या हुआ ये तो बोलो माँ?
माँ:-(बेटे को गले लगाते हुए) बेटा, तुम मेरा अपना बेटा है तुम मेरे साथ है ना?
मैं:- माँ मैं आपके साथ हमेशा हूँ।

भावना सिर्फ रोते ही जा रही थी, उसको और निरज को पता था कि अगर प्रकाश होश मैं आ गए तो भी दोनों की लगने वाली है,और ना आये तो भी बच्चा तो था ही पेट में तो लोग क्या बोलते? अब भावना बच्चे को लेके पक्की थी । फिर उसको वॉमिटिंग शुरू होती है, तो वो जल्दी से टॉयलेट मैं चली जाती है,फिर वापस आती है तो सबसे पहले निरज को देखती है। निरज समज जाता है। अब डॉक्टर आके बोलता है।

डॉक्टर:-शायद कल सुबह होश आया जाएगा।
माँ:-(थोड़ा खुस और दुखी दोनो होते हुए) जी ।

अब निरज और भावना को डर था कि कल सुबह होश आया गया तो क्या होगा? निरज सबसे ज्यादा डरा हुआ था। वो कुछ सोच रहा था। अब सबको इंतज़ार करते करते रात हो गयी। अब निरज हर्ष और भावना तीनो हॉस्पिटल में ही थे। अब हर्ष बोला कि

मैं:-माँ आप  घर चलो कल सुबह आपको लेने आ जाऊंगा।
माँ:- नही बेटा,
मैं:- माँ समजो ना। आपने खाना भी नही खाया।
निरज:-जी सही बोल रहे हौ ये। आप आराम करो घर जाके।
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#51
अब रात को हर्ष अपनी माँ को लेके घर आया और बाहर से खाना लिया तय और माँ को खाना खिलाया और 

माँ:-(डरते हुए) बेटा, तुम मुझे छोड़ कर कभी नही जाना।
मैं:- माँ मैं आपके साथ हमेशा रहूंगा।
माँ:-बेटा अब मुझे हॉस्पिटल ले चलो फिर से।
मैं:- माँ आप आराम करो। मैं अभी हॉस्पिटल में रुकता हूँ, सुबह आपको लेने आ जाऊंगा।
माँ:-(रोते हूए) नही बेटा, मुझे जाना है।
मैं:- माँ आप मेरी बात समजो।
माँ:- जी ठीक है। (वो रोते रोते सोने गयी।)


अब हर्ष भी फिर से हॉस्पिटल चला गया। और वहा निरज वही पे था।

मैं:- निरज, कोई बात नही अब तुम अपने घर चले जाओ।
निरज:-(डरते हुए) जी ठीक है ,मेरी कुछ जरूरत हो तो बेझिजक फोन कर देना।
मैं:- जी ठीक है।

अब निरज चला जाता है और हर्ष वहाँ हॉस्पिटल में लेट जाता है। यहाँ निरज घर जाने के बजाए भावना के पास आता है। और घर का दरवाजा खटखटा है। भावना रोते हुए आती है और दरवाजा खोलती है।

निरज:- अब रोने से क्या होगा?
माँ:- तुमको नही पता चलेगा।
निरज:-अब गुस्सा छोड़ दो।
माँ:- (डरते हुए) मुझे डर लग रहा है,कही मैं प्रेग्नेंट हो गयी तो?
निरज:-नही होगी।
माँ:- तुम्हारे कहने से कुछ नही होगा।एक काम करो प्रेगनेंसी टेस्ट होता है वो ले आओ अभी।
निरज:-ठीक है जाता हूँ।

फिर वो मेडिकल से ले आता है और भावना को देता है अब भावना टॉयलेट मैं जाती है और फिर देखने लगती है। थोड़ी देर बाद वो टॉयलेट का दरवाजा खोल के बहार आती है और  निरज को देख रोने लगती है।


माँ:-(रोते हुए) ये क्या कर दिया तूने? अब मैं किसी को मुह दिखाने के लायक नही रही।
निरज:-(डरते हुए) तुम एक काम करो बच्चा गिरा दो।
माँ:-(गुस्से मैं) पागल हो गए हो क्या?
निरज:- देखो फिर लोग क्या बोलेंगे? पति के मरने के बाद प्रेग्नेंट कैसे हुई?
माँ:-(परेशान होते हुए) तुमने मुझे कहा फसा दिया।
निरज:-मैं भी फस गया हूँ। मेरी बात मान लो।
माँ:- नही। कभी भी नही।
निरज:-(गुस्से में फोन से वो वीडियो जिसमे भावना बोल रही थी कि मैं अपनी मर्जी से चुदवा रही हूँ।) ठीक है ये वीडियो में तुम्हारे पति और बेटे को दिखा दूंगा।
माँ:-नही,नही,प्लीज ऐसा मत करना,बरबाद हो जाउंगी मैं।
निरज:- तो मैं जो बोलता हूँ वो करो।
माँ:-( डरते हुए) तुम ये गलत कर रहे हो।

अब न चाहते हुए भावना निरज के साथ किसी दूर के डॉक्टर के पास गए और वहाँ से बच्चे को गिरवा कर आये।  अब रात को निरज अपने घर चला गया।और भावना घर में पड़ी रो रही थी। और वहाँ पे हर्ष हॉस्पिटल में था।

सुबह हर्ष घर आया और माँ को लेके जाने ही वाला था कि डॉक्टर का फोन आया, और उसने बोला कि आपके पिता अब नही रहे। ये सुनते ही हर्ष होश सा खो देता है, और ये खबर अपनी माँ को भी बताता है। उसकी माँ तो फुट फुट कर रोने लगी। अब जैसे तैसे करते वो लोग हॉस्पिटल गए।फिर वहाँ उनके करीबी रिश्तेदार भी आ गए। और भावना का तो रो रो के बुरा हाल हो गया था।वो तो बेहोश सी हो गयी थी।

अब  1, 2 दिन सब क्रिया करम करने के बाद ....

माँ:-बेटा, मुझे माफ़ करदे मुझे बड़ी गलती हो गयी।
मैं:-माँ आपने क्या किया?
माँ:- बस बेटा मुझे माफ़ कर दे। तुम मेरे साथ ही रहना मुझे कभी छोड के मत जाना।
मैं:- माँ मैं आपको छोड़ के कभी नही जाऊंगा।
माँ:-(बेटे के सर पर हाथ घूमते हुए) मेरा बेटा।
मैं:- अच्छा माँ, मुझे हॉस्पिटल से फोन आया था ,पापा के हॉस्पिटल की फ़ाइल और कुछ चीज़ें लेनी है।तो मैं जाके आता हूँ।
माँ:-ठीक है,बेटा धीरे से सम्भाल के जाना।
मैं:-हाँ माँ।
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#52
अब हर्ष हॉस्पिटल पोहोंच जाता है। वहाँ वे वो चीज़े लेके निकल ही रहा था कि एक नर्स उसको बुलाती है

नर्स:-जी आप उसके बेटे है ना,जी अभी एक्सीडेंट मैं आये थे।
मैं:- जी।
नर्स:- जी वो मुझे आपको एक बात बतानी है।
मैं:-जी बोलिये ना।
नर्स:- पर आप किसी से भी ये मत बोलना की ये बात मैंने आपको बताई है।
मैं:- हाँ, लेकिन बात क्या है?
नर्स:- वो.....आपके आपके साथ उस दिन वो लड़का आया था वो को था?
मैं:-तुम बताओ तो यही हुआ क्या है?
नर्स:-वो जब आप लोग यहाँ से घर गए थे तभी वो यहाँ अकेला था।
मैं:- हाँ, तो क्या हुआ?
नर्स:-उसने आपके जाने के बाद ...... प्लीज आप मैंने बताया है ऐसा किसी से भी मत कहना। मेरी जान चली जाएगा,मेरे बच्चे की भी।
मैं:-ठीक है, लेकिन हुआ क्या है ये तो बताओ?
नर्स:-वो उस लड़के ने आपके पिता को मारा है।
मैं:- क्या बोल रही हो तुम ये सब?
नर्स:- मैं सच बोल रही हूँ। आपके पिता को ऑक्सीजन मिलना जरूरी था। और मैं रात को आपके पिता के पास आयी थी तब देखा कि वो ऑक्सीजन हटा रहा था।
मैं:-(गुस्से में) क्या? सच मैं? तुमने रोका क्यो नही?
नर्स:- मैंने उसने माना किया और बाहर भेजने की कोशिश की लेकिन उसने मेरा गला दबा दिया और बोला कि अपनी जान की परवाह है तो चुप रहना।

अब इसके बाद से हर्ष कुछ बोला ही नही। नर्स चली गयी और हर्ष यही सोच रहा था कि ऐसा क्या हुआ जो उसके पिता को निरज ने मार डाला। और वो जल्दी से अब अपनी माँ के पास जाता है और अब उससे रहा नही जाता और जल्दी से घर जाके पूछने लगता है।

मैं:-(गुस्से और दर्द दोनो मैं) माँ पापा का एक्सीडेंट क्यो हुआ?
माँbananaरोते हुए)बेटा मुझे माफ़ कर दे। तू मुझे छोड़ के कही मत जाना ।
मैं:- माँ मैं आपको छोड के कही नही जाऊंगा। 
माँ:-बेटा बस मुझे माफ़ कर देना।(और रोने लगती है)

यहाँ पे माँ के पास और बेटे के पास दोनो के पास एक ऐसी खबर थी जो एकदूसरे को रुला देने वाली थी,जिसका सामना अभी होता है।


मैं:-माँ, आप सच बोलो,आपको किसी ने कुछ परेशान किया? किसी ने जबरजस्ती की?
माँ:- नही बेटा, ऐसा कुछ नही है।
मैं:- माँ,आप सच नही बोल रही मुझे ही बोलना होगा।
माँ:-(रोते और डरते हुए) बेटा मैं झूठ क्यों बोलूंगी?
मैं:-(अपने फोन में से रेकॉर्डिंग किये वीडियो दिखाते हुए) माँ मुझे आपके और निरज के बारे में सब पता है।

[Image: missionary_001-10.gif]

माँ:-(वीडियो देखते हुए और बेटे से गले लग के रोते हुए) बेटा मुझे माफ़ कर दे,मुझसे बड़ी गलती हो गयी।
मैं:-लेकिन माँ आप कैसे फस गयी इन सब मैं?
माँ:- बेटा मुझे भी खुद को नही पता।
मैं:-माँ लेकिन पापा का एक्सीडेंट कैसे हुआ?

ये सवाल के बाद भावना ने उस दिन जो भी हुआ सब बता दिया। क्योंकी उसको पता था कि अब झूठ बोलने का कोई फायदा नही। 

मैं:-माँ आपको पता है,पापा ठीक होने वाले थे।
माँ:-हाँ, बेटा लेकिन अब किस्मत ही ऐसी हो तो क्या करे?
मैं:-नही माँ , आप यकीन नही करेगी, निरज ने.....
माँ:-क्या बेटा? बोलो ना?
मैं:- निरज ने पापा को मार डाला था।
माँ:-(शॉक होते हुए) क्या????
मैं:-जी माँ ,मैं अभी हॉस्पिटल गया था तब एक नर्स ने बताया।
माँ:- तो उसने किसी को बताया क्यों नही?
मैं:- उसको मार डालने की धमकी दी।
माँ:- उस हरामी ने मुझे भी धमकी देके करवाया।
मैं:- क्या माँ?
माँ:- (हड़बड़ी में)कुछ नही बेटा.
मैं:- माँ सच बोलो ।।
माँ:- (रोते हुए) बेटा, तुम वादा करो कि तुम मेरे साथ हमेशा रहोगे।
मैं:-(माँ का हाथ पकड़ते हुए) माँ मैं आपके साथ हमेशा रहूंगा। लेकिन निरज ने आपको क्या धमकी दी?
माँ:- बेटा, उसका बच्चा.....
मैं:- बोलो ना माँ..
माँ:- बेटा उसका बच्चा मेरे पेट में पल रहा था। ये सब होने के बाद वो डरने लगे और मुझे मेरी वीडियो दिखा के बच्चा गिरा देने की धमकी दी।
मैं:- (गुस्से में) उसको तो मैं छोडूंगा नही अब।
माँ:- बेटा अभी कुछ मत कर।।

मैं:-माँ लेकिन आपसे एक बात पुछु?
माँ:- हम्म
मैं:- आप लोग तो हमेशा वो पहनते हो ना?
माँ:- (शर्माते हुए) हम्म ,उस दिन तो वो बोल भी रहा था कि बिना उसके करने दो लेकिन मैंने मना कर दिया था।लेकिन बाद में पहन लिया था लेकिन ये फट गया।


अब ये सुनने के बाद हर्ष सोचता है कि ऐसा तो हो नही सकता, उसको बात कुछ और ही लग रही थी। लेकिन अब भावना खाना बनाने लगी और हर्ष थोड़ी देर अपने रूम के जाके बैठा। और वो सिर्फ यही सोचे जा रहा था कि उन दोनों को ये सब करते बहुत दिन हो गए इतने दिन मैं ऐसा नही हुआ। तो उसने उस दिन वाली वीडियो देखनी चाही। फिर वो मेमोरी कार्ड ले आया और मोबाइल मैं डाल के देखने लगा।

उसने देखा कि वो दोनों आये और फिर भावना रूम से बाहर गयी, और उसी वख्त निरज ने आस पास देखा तो उसको बाहर एक कैंची मिली जिससे उसने कॉन्डोम का आगे का हिस्सा काट दिया था और जल्दी से लन्ड पे हाथ रख के खड़ा हो गया,और फिर भावना पानी लेके आयी। फिर वो लोग लग गए अपने काम में। ये देख हर्ष और ज्यादा गुस्सा हो जाता है। और वो अपनी माँ के पास किचन में जाता है।

मैं:-माँ।
माँ:-(किचन से) मैं यहां हूँ बेटा।
मैं:- माँ उस दिन आपको उसने पानी लेने भेजा था ना?
माँ:-(याद करते हुए) हाँ, बेटा, लेकिन तुझे कैसे पता?
मैं:-मैंने आपके रूम में कैमरा लगाया  था ।
माँ:-(शौक होते हुए) क्या? मतलब तुमने सब देखा?
मैं:-(सर नीचे करके) जी माँ।
माँ:-(रोते हुए) बेटा मुझे माफ़ कर दे।
मैं:- उससे निरज को अब मैं छोड़ूंगा नही।
माँ:- बेटा, रहने दो उसको।
मैं:- आपको पता नही उसने क्या किया?
माँ:- क्या हुआ बेटा?
मैं:- उसने आपको जानबूझकर पानी लेने भेजा था और कॉन्डोम को आगे से काट दिया था।
माँ:- क्या?
मैं:- हाँ माँ।

अब भावना कुछ बोलती नही ,अब उसकी आँखों में गुस्सा आने लगा था कुछ देर ऐसे ही खड़े रहने के बाद वो अपने बेटे से बोलती है.....

माँ:-बेटा, अब तू मेरा बदला ले ।
मैं:-मतलब माँ?
माँ:- तू कुछ भी कर लेकिन उस हरामी को हमने जो दर्द सहन किया है तुम उससे ज्यादा करवाना।
मैं:- हम उस पर केस करेंगे।
माँ:- हाँ, सही कहा तूने।

Ab dosto aage dekhna ki harsh apni maa ka badla kaise lega... Tab tak ap socho ki wo kaise aur kab badla lega
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#53
Bht hi mst bhai maza agya
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#54
(27-06-2021, 10:32 AM)Montiloat Wrote: Bht hi mst bhai maza agya

Thank you.... Ji.
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#55
Bhai maa k aur sex scene hote to aur maza a jata
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#56
(27-06-2021, 10:48 AM)Himanshuty Wrote: Bhai maa k aur sex scene hote to aur maza a jata

Yes you are right but meri bhi kuch majburi thi.. Story thodi jldi deni hai. Aur likhne ka time thoda kam milta hai dusre kaamo ki wajah se to thodi story jaldi aage badh rahi hai..  Iske liye sorry..
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#57
अब उस दिन से न निरज दिखाई दिया ना उसकी जिम की दुकान खुली। और भावना और हर्ष ने उस पर केस तो कर दिया और उसकी दुकान बंद करवा दी और उससे कुछ पैसे भी इन लोगो को मिले,लेकिन कोर्ट फैसला नही सुना रहा था, सिर्फ तारीख़ ही देते जा रहा था। 

और उस दिन के हादसे के बाद दोनों माँ बेटे मुंबई छोड के पुरानी यादों को छोड़ के दिल्ली आ गए थे,और वहाँ पे अपनी जिंदगी की शुरुआत की थी। 

वो लोग वहां दिल्ली में शहरों से थोड़ा दूर एक शान्त जगह पे रहने लगे थे। जहां आसपास कोई भी नही रहता, 
[Image: images?q=tbn:ANd9GcRlq5SwgHdXbibIBJuouc9...w&usqp=CAU]
घर भी अच्छा था। और नीचे बेसमेंट भी था,एकदम बडा वाला। आसपास कोई शोर नही था।तो  वो लोगो को अब दिल्ली आए हुए 6,7 महीने हो गए थे।

इधर भावना घर में रहती और हर्ष ने दिल्ली में कॉलेज जॉइन कर ली थी। दोनो पुरानी बातों को भूल कर अपनी नई जिंदगी की शुरुआत में थे।
 रोज की तरह 

मैं:-माँ ,मेरा नास्ता दो माँ. मुझे लेट हो रहा है।
माँ:-(नास्ता लाते हुए) ये ले मेरा बेटा, खा ले।
मैं:-हाँ, माँ।
माँ:-बेटा, अब कॉलेज खत्म होने में कितना समय बचा है?
मैं:- माँ अभी सिर्फ और 3,4 महीने ही है।
माँ:- ठीक है आराम से पढ़ लो।
मैं:- ठीक है माँ, मैं कॉलेज जाता हूँ।

अब रोज की तरह हर्ष कॉलेज जाता है। और शाम को कॉलेज के गेट के बाहर अपने दोस्तों से बाते कर रहा होता है तब पीछे से एक लड़की आती है 
[Image: images?q=tbn:ANd9GcS32g5idD47XA_B3Ie4qzZ...g&usqp=CAU]
जो दिखने में सुंदर थी और उसकी उम्र करीब 27 होगी। और बोलती है.

लड़की:- सुनिए। क्या आप  मुझे अपना फोन दे सकते है? मुझे मेरे भाई को फोन करना है मेरे फोन में बैटरी नहीं है।
मैं:- जी ठीक है ये लीजिये।
लड़की:-(फोन लेते हुए) थैंक्यू।
मैं:- नही उसमे क्या।।

अब वो लड़की अपने भाई को फोन करती है और बाते करती है और इधर हर्ष भी अपने दोस्तों से हसी मजाक कर रहा होता है। और तभी...

लड़की:- हाँ हाँ, भाई, मुझे कोई तकलीफ नही है। मैं ठीक हूँ।
 और सामने से कोई बात कर रहा था।

फिर लड़की बोली.....

लड़की:- हाँ निरज भाई, मैंने कहा ना कुछ भी प्रॉब्लम नही है यहां पे। अब मैं फ़ोन रखती हूं।

हर्ष के कान में निरज नाम सुनते ही वो सब बातें फिर से याद आ जाती है। फिर लड़की हर्ष को फ़ोन देके थैंकयु बोल के जाने लगती है। हर्ष के फोन में ऐसा था कि किसी का भी नंबर हो उसका नाम बता देता था,तो उस लड़की ने जो नंबर अभी लगाया था उस पे “निरज जिम” ऐसा लिखा था। फिर वो जल्दी से उस लड़की के पास जाता है।

मैं:-(लड़की से पूछते हुए) जी आप निरज की बहन हो क्या?
लड़की:-जी हाँ, आप जानते हो मेरे भाई को?
मैं:-(कुछ सोच कर)  हाँ ..मतलब उसका जिम था वो पता है।
लड़की:- हाँ मैं उसकी बहन हूँ।
मैं:- वैसे आप का नाम?
लड़की:-(अपना हाथ आगे बढ़ाते हुए) जी मैं मानशी।
मैं:-(दोनो हाथ मिलाते हुए) मैं हर्ष।
मानशी:- आप यही पढ़ते हो?
मैं:- हाँ, अभी कुछ महीनों पहले ही आया।
मानशी:- अच्छा।
मैं:- लगता है आपके भी को आपकी बहुत फिक्र हो रही है।

मानशी:-(परेशान होते हुए) हाँ, देखो ना 1 मिनीट भी फोन न करु तो परेशान हो जाते है।
मैं:- वैसे वो कहा पे रहते है?
मानशी:- अभी तो वो बैंगलोर मैं है। उसका जिम कुछ महीनों पहले बंद हो गया था और वो भी अचानक से बैंगलोर चले गए।
मैं:-(अब सब समझते हुए) ऐसा है।भाई है फिक्र तो होगी ही।
मानशी:- हाँ।चलो अब मैं चलती हूँ।
मैं:- ठीक है।

अब वो जल्दी से सीधा घर आ जाता है और इतने महीनों बाद उसको उसका शिकार मिल जाता है।  अब रात को माँ बेटे खाने बैठे थे और वो अपनी माँ से बोलता है।

मैं:- माँ।
माँ:- हाँ बेटा, कुछ चाहिए क्या? रोटी दूँ?
मैं:- नही माँ आपसे कुछ बात करनी है।
माँ:-क्या हुआ बेटा?
मैं:- (आंखों में नमी होते हुए) माँ लगता है जो 2 जान गई थी उसका बदला लेने का समय आ चुका है।
माँ:- मतलब बेटा?
मैं:-पापा की और उस छोटे बच्चे की जो उस दिन.......( इतना बोल के चुप हो जाता है)
माँ:-(सब बातों को याद करते हुए) लेकिन कैसे बेटा?
मैं:-वो उस दिन से मुंबई छोड़ के बैंगलोर चला गया था।
माँ:- तुम्हे कैसे पता?
मैं:- माँ मैं जिस कॉलेज में हूँ,उसकी बहन भी उसी कॉलेज में है।

अब भावना के दिन मैं किसी की जिंदगी बर्बाद करना तो नही था लेकिन उसके साथ जो हुआ और 2 जान की कीमत चुकानी होगी निरज को। क्योंकि कोर्ट का तो पता ही था कुछ नही करने वाला। तो उसने बेटे को बोला 

माँ:-(गुस्सा दिखाते हुए) बेटा, तू अपनी माँ का बदला लेगा।कुछ भी कर लेकिन मेरा बदला ले।
मैं:- जी माँ, मैं बदला लूंगा। और ऐसा बदला लूंगा, जो दर्द हमने लिया था वो दर्द व भी ले।
माँ:-हाँ, बेटा।
मैं:- अब वो खुद सामने से हमारे पास आएगा।
माँ:- वैसे बेटा क्या करेगा तू?
मैं:- अब तीर वही मांरूँगा जहाँ दर्द ज्यादा हो।
माँ:- बेटा, तू बस मेरा बदला ले।
मैं:- जी माँ, आप टेंसन न लो।


अब दोनों खाना खा के सो जाते है। और इधर हर्ष ने सब अपने दिमाग में खेल बना लिया था ,अब उसको अपनी चाल चलनी थी। निरज ने जैसे उसकी माँ को फसाया वैसे अब हर्ष उसकी बहन को फसएगा।
 अब दूसरी सुबह वो कॉलेज जाने निकला और वो अब मानशी को देखने लगा कि वो कब कितने बजे कहां जाती है।
फिर कॉलेज जाने के बाद , उसने देखा कि वो एक घर से निकली और ऑटो वाले से बाते कर रही थी कि ये आप ज्यादा पैसे बोल रहे है आप जाइये ,ऐसे सब ।और तभी इस बात का फायदा देखते हुए हर्ष उस के पास गया,और ऐसे गया कि उसको मालूम न हो कि वो भी यही से जाएगा। और बाइक लेके निकल और मानशी को देखे बोला।।

मैं:- अरे आप यहां?
मानशी:- हाँ, देखो न कोई ऑटो वाला मिल ही नही रहा ।
मैं:- अरे तो मेरे साथ बाइक ओर चलो ना मैं भी कॉलेज ही जा रहा हूँ।
मानशी:- जी ठीक है।

और मानशी बाइक पर बैठ के हर्ष के साथ निकल जाती है

मैं:- वैसे आप वहाँ रहते हो क्या?
मानशी:-हाँ, रूम रेन्ट पे ले के रहती हूँ।और अभी तो रूम में भी कोई नही है बस में अकेली ही रहती हूँ।
मैं:- अच्छा, मेरा घर भी आपके रूम से पास ही है,आना होगा आपको।
मानशी:- आप बुलाये मैं आ जाऊँगी।

और दोनों हसने लगे।और कॉलेज पोहोंच गए। अब दोनों अपनी अपनी क्लास में गए, और इधर हर्ष क्लास में बस बदले के बारे में ही सोच रहा था।अब शाम को जब वो घर जाने निकला तो फिर मानशी ऑटो की राह देख रही थी कॉलेज के पास। तो हर्ष फिर से आ गया उसके पास और..

मैं:- नही मिलेगा ऑटो,मैं हूँ ना, मैं छोड़ दूंगा।
मानशी:- (खुश होते हुए) हाँ, ठीक है।

अब दोनों रोज इसी तरह मिलते रहे। और हर्ष उसको अपनी चाल में फसाता रहा। 

लेकिन भावना सोच रही थी कि..

मेरा बेटा बदला तो ले लेगा ,लेकिन जितना जल्दी ले ले उसके लिए अच्छा होगा। अब वो भी जवान हो चुका है, शायद वो लड़की मैं बहक गया तो क्या होगा?
 तो वो अपने बेटे से बोलती है कि ..


माँ:- बेटा, तुम जल्दी से मेरा बदला ले लो।
मैं:- माँ अभी काम चल ही रह है।
माँ:- बेटा, बस में जितना बोलती हूँ उतना करो।,बस तुम बदला ले लो।
मैं:- हाँ माँ,
माँ:- बेटा, उसकी बहन से क्या बदला लेगा?
मैं:- माँ वो अब मेरा काम है। उस निरज को उसने जो किया है वो उसकी बहन के साथ भी होगा अब।
माँ:-( सोचती है कि ये तो गलत हो जाएगा, लेकिन उसको खोये हुए बच्चे और पति की याद उसको और ज्यादा परेशान करती है तो वो बदला लेने को हाँ बोल देती है) ठीक है लेकिन तुम फस मत जाना।
मैं:- माँ  मैंने पूरी तैयारी कर ली है।
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#58
मज़े दार स्टोरी एक 1
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#59
अब दूसरे दिन भी रोज की तरह मानशी बाहर खड़े होकर हर्ष के आने की राह देख रही होती है।और तभी उसके पास एक बड़ी गाड़िया आती है,और उनमें से दरवाजा खोल के 3 आदमी उतरते है और मानशी को उठा लेते है।और मानशी के हाथ पैर बांध दिए और वी चिल्लाने लगी तो उसके मुह पे पट्टी बांध दी। 
[Image: tenor.gif]

लेकिन वो कुछ ज्यादा ही उछल रही थी तो 1 आदमी ने उसके सर पर डंडा मार दिया, तो वो बेहोश हो के लेट गयी।

कुछ देर बाद उसकी आँखें खुली, उसकी आँखों पे अभी भी पट्टी थी और मुह पे भी, वो उछलने लगी, तभी किसी ने पीछे से खड़े हो के पहले मानशी की आँख की पट्टी हटा दी। मानशी ने देखा तो पाया कि वो एक बंद जगह पे थी। 
[Image: images?q=tbn:ANd9GcQj677B6Igsu-RZEko6jFA...g&usqp=CAU]
और उसको रस्सी से बांध कर खुर्शी पे बिठाया था। वो भागने की कोशिश कर रही थी ,लेकिन कुछ नही हो पा रहा था। फिर पीछे से किसी ने फिर से मानशी के मुह की भी पट्टी हटा दी। और जैसे पट्टी हटाई मानशी जोर जोर से चिल्लाने लगी।


मानशी:-(रोते हुए) हेल्प...........हेल्प.........कोई बचाओ.......
 पीछे से आवाज आई अबे कोई नही सुनने वाला तेरा यहाँ, और मैं पागल थोड़ी हूँ कि कोई सुन ले ऐसी जगह तुझे रखु।
और ..

मानशी:- (डरते हुए) को हो तुम ? मुझे यहाँ क्यों लाये हो? मैं कहाँ हूँ?

अब वो जिसने अभी पट्टी खोली थी वो मानशी के सामने आया। और मानशी देख के शौक हो गयीं और बोली...

मानशी:- हर्ष????? तुम????!!! 
मैं:- हाँ, मैं। क्यों डर गई? ( और जोर जोर से हसने लगता है)
मानशी:- क्या कर रहे हो? छोड़ो मुझे?
मैं:- हाँ, छोड़ तो दूंगा, मेरा काम हो जाने पर।
मानशी:-कैसा काम ? क्या कर रहे हो ये? जाने दो मुझे।।
मैं:- चुप कर अब।
मानशी:-( गुस्से मैं) छोड़ो मुझे ,मैं सिक्युरिटी को फोन करूँगी, तुम्हारे लिए अच्छा नही होगा।
मैं:-(गुस्से में) अगर अभी तुम चुप नही रही तो तुम्हारे लिए अच्छा नही होगा। 
  और इतना बोल के मानशी ने जो टी-शर्ट फाड़ दी, और उसके बुब्स सामने आ गयी।

[Image: 616_160.gif]


मानशी:-(गुस्से में) क्या कर रहे हो तुम छोड़ो मुझे। मुझसे बुरा कोई नही होगा ।
मैं:-चुप कर बोला ना..( कर बोल के उसका पैंट भी फाड़ दिया।)
[Image: 21908975.gif?width=460]
अब मानशी पूरी तरह से नंगी हो जाती है। उसको शर्म भी आ रही थी ,और गुस्सा भी।

मानशी:- क्या कर रहे हो तुम? क्या चाहिए?
मैं:- रुक तुझे पता चलेगा।
मानशी:-( रोते हुए गिड़गिड़ाते हुए) मुझे जाने दो ,प्लीज।

 अब हर्ष उसके बहुत सारे वीडियो लेता है और फ़ोटो लेता है,
[Image: images?q=tbn:ANd9GcSW2GXG-CTGWvcIInqVaXa...Q&usqp=CAU]


मानशी:-( डरते हुए) क्या कर रहे हो? प्लीज किसी को मत भेजना,मैं बर्बाद हो जाउंगी।
मैं:- वो तो तुझे होना ही है।
मानशी:- प्लीज, ये किसी को मत भेजना मेरी बहुत बदनामी हो जाएगी।मेरे घर वाले क्या सोचेंगे?
मैं:- अच्छा ऐसा क्या?  ( और हसने लगता है)


तभी उस बंद रूम का दरवाजा खुलता है और पूरे रूम में रोशनी छा जाती है। अंदर एक औरत आती है। उसको देख मानशी चिल्लाने लगती है...

मानशी:- कोन है? प्लीज मुझे बचाओ। ये लड़का मुझे किडनेप कर के लाया है।

हर्ष हसने लगता है और वो औरत अंदर आके हर्ष को देख बोलती है  की ये है उसकी बहन? और फिर उसको देखने लगती है। वो औरत हर्ष की माँ ही थी।

माँ:- अब इसका क्या करेगा?
मैं:-आप टेंसन मत लो माँ, मैं संभाल लूंगा।
माँ:- ठीक है।बेटा ये सब करना तो नही चाहती लेकिन उसने जो किया है उसकी सजा उसको देनी ही पड़ेगी।
मैं:- हाँ माँ।


अब भावना चली जाती है और मानशी डर के मारे फिर से बोलती है..


मानशी:- प्लीज हर्ष मुझे छोड़ दो,मेरे फ़ोटो कही मत भेजना। तुम जो कहोगे वो मैं करूँगी।
मैं:- वो तो तुम्हे करना ही पड़ेगा।

अब हर्ष थोड़े दूर एक जगह पे जाता है और मोबाइल खोल के कुछ कर रहा होता है। 

अब बात ये थी कि जिस दिन उसकी बहन मिली उसके दूर दिन से हर्ष ने सब प्लानिंग कर ली थी, उसका प्लान आगे इनके देखने को मिलेगा। लेकीन उसने पहले ये किया कि

उसने रिया के नाम से एक फेक आईडी बनाई थी जिससे वो निरज से बात करता, और फिर उसको फसाने लगा। अब चैट  मैं जो लिखा था वो आप खुद पढ़ लो...


निरज:- जान कब मिलेगी?
रिया:- मैं बुलाउंगी तुझे।
निरज:- तुम बुला ही कहा रही हो?
रिया:- जब मैं बुलाउंगी तो तुम आ जाना।
निरज:- फिर?
रिया:-फिर क्या?
निरज:- फिर मुझे वो सब करने देगी ना??
रिया:- क्या तुम भी ,कर लेना बस।।।।
निरज:-पक्का ना? 
रिया:- पक्का।

ऐसे बाते हो रही थी। अब हर्ष ने सोचा अब समय आ गया है, 
 तो उसने उसकी अगली चाल चली। वो मानशी के पास गया और बोला..

मैं:- सुन,तेरी फाटो और वीडियो वायरल करु क्या?
मानशी:- नही नही ऐसा मत करना,तुम जो बोलोगे मैं वो करूँगी।
मैं:-( दूसरा सिमकार्ड डालके फ़ोन मिलते हुए) जो मैं बोलू वही बोलना।
मानशी:-ठीक है।
मैं:- जरा सी भी गड़बड़ी की या चालाकी की तो पूरे कॉलेज में तू वायरल हो जाएगी।
मानशी:-( डरते हुए) ठीक है।
 अब हर्ष ने जो बोलने को बोला वो फोन पे उसने बोला।

मानशी:- हेलो.
फोन पे:- बोलो जान।
मानशी:- कल आ जाना किसी भी हालत में और कर लेना जो तुम बोल रहे थे।लेकिन एक शर्त पे ।
फोन पे:- क्या?
मानशी:- मैं अपना चेहरा नही दिखाऊंगी। वो सब हो जाने के बाद देख लेना।
फोन पे:- सब चलेगा, मैं अभी आता हूँ तुम अड्रेस भेजो।
मानशी:-हम्म

मैं:- अब तूने मेरा आधा काम कर दिया, अब मेरा आधा काम और कर दे,मैं तुम्हे छोड़ दूंगा।
मानशी:- तुम जो बोलोगे वो करूँगी, बस मेरे फ़ोटो मत भेजना किसी को।
मैं:- अब मैं तुम्हे जो अड्रेस बोलता हूँ वहाँ तुम्हे जाना है, अपना मुह पूरी तरह से ढक के और वहाँ एक लड़का आएगा उससे तुम्हे चुदवाना है।
मानशी:-( गुस्से में) क्या? नही नही। मेरे पीरियड चल रहे है।
मैं:- ( गाल पे एक थप्पड़ मरते हुए) 
[Image: 23584517.gif?width=460]
क्या बोली? चलो कोई बात नही अभी तेरा एक फोटो भेजता हूँ कॉलेज ग्रुप में
मानशी:-( डरते हुए) नही नही, प्लीज, मैं करूँगी , बस उसको बोलना की कंडोम पहन ले।
मैं:-  ये हुई ना बात. लेकिन सुन वहाँ जाके चुदवा ।लेकिन कुछ भी हुआ तो मेरा नाम मत लेना वरना तेरे फ़ोटो मेरे पास ही है। 
मानशी:- जी।

अब पूरी रात मानशी वहाँ पे नंगी बंधी हुई थी,  अब हर्ष को सुबह होने का इंतजार था। फिर सुबह मानशी को नींद से उठाके बोला कि याद है ना।जरा सी भी चालाकी की तो .....

अब हर्ष बोला।
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#60
मैं:- अब मैं तुझे छोड़ रहा हूँ और तुझे एक होटल में जाना होगा।और जैसा कहा वैसा करना है,मैं तुम्हारे पीछे ही रहूंगा 
मानशी:-( डरते हुए) ठीक है।
मैं:- याद रखना अभी तेरे हाथ पैर छोड़ रहा हूं। अगर भागी तो मैं तुझे पकड़ने नही आऊंगा।सीधा तेरे फ़ोटो.....
मानशी:- हाँ, ठीक है।
मैं:- वहाँ टेबल पे कपड़े है वो पहन लें ,और जल्दी आ।

अब मानशी कपड़े पहन के आती है उसका मुह भी ढका हुआ था। 
[Image: images?q=tbn:ANd9GcTfb_Qcy_LaLhHzsg8br-N...g&usqp=CAU]
अब हर्ष ने बोला चल। और वो उसको बड़ी गाड़ी में बिठा के होटल ले गया, उस गाड़ी में उसकी माँ भी थी।
 फिर वो होटल पे जाके 


मैं:- चल अब सीधा रूम नंबर 8 मैं जा और सीधा कपड़े निकाल के लेट जाना और हाँ अपना चेहरा मत दिखाया।
मानशी:- जी।
मैं:- और हाँ, रूम की लाइट भी मत जलाने देना। और अगर कुछ भी हो जाये कोई भी दूसरा आ जाये तो बोल देना की वो लड़का तुम्हारा रेप कर रहा था,तो तुम बच जाओ।
मानशी:- ठीक है।

अब मानशी रूम में चली जाती है, और इधर माँ बेटे किसी के आने की राह देख रहे होते है। कुछ आधा घण्टा राह देखने के बाद उसका शिकार आता है,  और उसको वो लोग देखते है। वो खुश लग रहा था। और वो जल्दी से अंदर चला जाता है।

अब हर्ष ने मानशी के साथ एक बैग भेजा था जिसमे कैमरा था,उसको  वो लोग गाड़ी में बैठ के लाइव देख रहे थे। वो लड़का अंदर आते ही नंगा होने लगता है और मानशी पे चढ़ जाता है,और धीरे धीरे वो मानशी के बूब्स दबा रहा था कभी चुत चाट रहा था, और कुछ 20 मिनट बाद उसने लन्ड निकाल के डालने लगा  उसने कंडोम नही पहना और जोर जोर से शॉट मारने लगा।मानशी रो भी रही थी ऐसे चुदाई से और छुड़वाने की कोशिश भी कर रही थी।
[Image: 12447086.gif?width=460]
अब थोड़ी देर बाद हर्ष ने अपना आखर दाव खेला। उसने जल्दी से सिक्युरिटी को फोन करके बोला कि  ये होटल में रूम नम्बर 8 मैं घिनोना काम चल रहा है।एक लड़का लड़की के साथ जबर्दस्ती कर रहा है। और फोन रख देता है। थोड़ी देर बाद सिक्युरिटी की गाड़ी आ जाती है, और वो लोग सीधा रूम नम्बर 8 मैं चले जाते है। और उसके पीछे थोड़े दूर दोनो माँ बेटे भी चलते है। अब सिक्युरिटी दरवाजा तोड़ के सीधा अंदर आ जाती है रूम के।

और उसी समय उस लड़के ने अपना वीर्य उसकी चुत मैं गिरा  दिया। मानशी के अंदर चुत मैं वीर्य लगते ही वो भी चिल्ला उठी की ये क्या कर दिया तुमने ? मेरे पीरियड चल रहे है, और उसने अपने मुह पे ढका कपड़ा निकाला और देखा तो उसका भाई निरज था। और निरज ने देखा तो उसकी प्यारी बहन जिसको 1 सेकण्ड भी फोन लेट आये तो डर जाता था , वो थी। 

ये कुछ ही समय में हो गया और सिक्युरिटी भी सामने थी।
मानशी:- भाई???!!!
निरज:- तुम यहाँ??

सिक्युरिटी इतने में निरज को पकड़ लेती है और महिला कांस्टेबल मानशी को कपड़े से ढक के रूम से बाहर ले जाती है।और सिक्युरिटी बोलती है की तुमने अपनी बहन के साथ जबरजस्ती करने के जुर्म में गिरफ्तार किया जाता है।और निरज ने अपनी बहन को चोद कर जो उसने अंदर गिराया है उसके बारे में सोचने लगया है, कुछ मुह से निकल ही नही रहा था। और  इधर हर्ष और भावना मानशी जहाँ थी उसके थोड़े दूर खड़े थे । फिर जब सिक्युरिटी निरज को लायी तब मानशी ,हर्ष, और भावना सब एक जगह पे थे।

फिर सिक्युरिटी ने मानशी को पूछा

सिक्युरिटी:- क्या इसने आपके साथ जबर्दस्ती की है?
मानशी:-(डरते हुए और रोते हुए) हाँ।
निरज:-  ये क्या बोल रही हो?
मानशी:- सर इसको मेरी नजरो से दूर ले जाइए।
सिक्युरिटी:- जी अब ये जाएगा उम्रकैद ।हमेशा के लिए।
मानशी:- जी।
सिक्युरिटी:- अगर आप बुरा ना माने तो ये सवाल है आपसे की आप ये बच्चे का......।
मानशी:-( रोते हुए गुस्से में) मुझे नही चाहिए, मैं इसको अपनी कोख़ मैं नही रखना चाहती,किसी शैतान के बच्चे को।

अब सिक्युरिटी निरज को ले जा रही थी तभी हम मीले और वो बस रोये जा रहा था।

माँ:- देखा,गलत चीज़े करने का नतीजा।
मैं:- तुमको पता भी नही की तुमने तुम्हारी गलती की वजह क्या क्या खोया। एक समय था जब तुम्हारी वजह से हमने भी खोया था।

अब निरज को उसके किये और बहुत पछतावा हो रहा था, अब सिक्युरिटी उसकी जेल ले गयी और उसको उम्रकैद की सजा सुना दी।
 और इधर मानशी को भी माँ बेटे ने निरज की हकीकत बता दिया और हर्ष ने लिए उसके नंगी फ़ोटो भी उसी के सामने डिलीट कर दी।


और वो वहाँ से अपने घर चले गए। और अपने बदला को अपना अंजाम देते हुए उसकी जिंदगी की अच्छी शुरुआत में लग गए।


                               The End... 

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