11-11-2019, 11:39 AM
वो आँखे मलता हुआ बाहर निकला तो मालिक यानी अरुण जी को देखकर हैरान रह गया
इतने बड़े रुतबे वाले इंसान, जो एक मंत्री भी है, उन्हे अपनी बीवी से इस तरह से हंस-2 कर बातें करते देखकर वो हैरान रह गया.
पर जिस अंदाज से वो नम्रता को देख रहे थे, उसकी गोलाइयों को घूर रहे थे, और जिस अपनेपन से उसके साथ बातें कर रहे थे, उसे देखकर निमेश एक ही पल में समझ गया की वो भी उसी की तरह हरामी इंसान है..
वो उनकी बीवी संजना की मारने के सपने देख रहा है और ये साहब अपनी हॉट बीवी को छोड़कर उसकी देहाती बीवी के पीछे पड़े हैं
किसी ने सही कहा है, जो चीज़ जिसके पास होती है उसकी कद्र नही होती
पर ये एक ऐसी सिचुएशन थी जिसमें दोनो ही अपनी नही बल्कि दूसरे की बीवी की कद्र कर रहे थे
वैसे ये तो आम बात है हमारे समाज में, इसलिए इन्हे भी दोष देना सही नही है.
निमेश को आता देखकर अरुण बातें करता हुआ रुक सा गया और उससे बोला : “अर्रे, निमेश, उठ गये तुम, मैं तुम्हे ही बुलाने आया था वो ज़रा मेमसाहब को कुछ समान लेने अपनी एक फ्रेंड के घर जाना है तुम ज़रा उन्हे ले जाओ..”
निमेश जब जाने लगा तो अरुण साहब बोले : “और हाँ , आज जो तुमने क्लब में संजना की हेल्प की , उसके लिए थेंक्स वो बता रही थी की कैसे तुमने उसे वो खेल जीतने में हेल्प की गुड वर्क निमेश वापिस आओगे तो ज़रा मेरे साथ भी 2-2 हाथ करना, शायद मुझे भी तुमसे कुछ सीखने को मिल जाए ”
निमेश मुस्कुराया और रात को खेलने की बात करके अंदर चला गया.
निमेश समझ गया की उसे बुलाने आना तो उसका बहाना था, असल में वो नम्रता से बाते करना चाहता था
पर इस वक़्त उसे नम्रता की फ़िक्र से ज़्यादा संजना मेडम का लालच हो रहा था
वो तुरंत तैय्यार होकर संजना मेडम की कार में पहुँच गया.
हमेशा की तरह संजना ने ग़ज़ब की ड्रेस पहनी हुई थी, जिसमें उसके हर एक अंग को सॉफ देखा जा सकता था..
![[Image: 1577763_002_fce9.jpg]](https://images.pornpics.com/1280/201807/09/1577763/1577763_002_fce9.jpg)
अंदर बैठते ही संजना ने उसे एड्रेस समझाया और वो चल दिया
बेक मिरर से वो देख पा रहा था की उनके चेहरे पर कितनी चमक है
वो मोबाइल पर अपनी उसी फ्रेंड से बात कर रही थी, जिसके घर जाना था, और उसके हिलते हुए होंठ देखकर उन्हे चूसने का लालच निमेश में बढ़ता चला गया..
और अपने इस टाइम को कैसे इस्तेमाल करना है, ये भी वो सोचने लगा.
वहां पहुँचकर संजना अपनी गांड मटकाती हुई अंदर चली गयी
वो भी एक मंत्री का बंगला था
गाड़ी जब अंदर पहुँची तो संजना की फ्रेंड उसे लेने के लिए बाहर तक आ गयी
और उसे देखकर निमेश ने पहचाना की ये तो सुबह वाली किटी पार्टी में भी थी
निमेश को देखकर वो मुस्कुरा दी उसने भी सिर झुकाकर उसे नमस्ते किया..
वो भी काफ़ी हॉट लग रही थी.. गुलाबी साड़ी में उसका कसा हुआ शरीर काफ़ी सैक्सी लग रहा था.
![[Image: 6646755_b92ff83.jpg]](https://content.wafflegirl.com/galleries/content/6/646/6646755_b92ff83.jpg)
निमेश भी सोचने लगा की ये अमीर लोग भला घर में भी ऐसे सज धजकर क्यो बैठते है.
खैर, संजना के जाने के बाद वो करीब 1 घंटा कार में बैठा उसका इंतजार करता रहा
घर जाकर अरुण साहब के साथ ताश का खेल भी तो खेलना था
उसके पीने का भी टाइम हो गया था | घर पर एक बॉटल पड़ी थी, बस वो संजना का इंतजार कर रहा था ताकि वो जल्द से जल्द घर जा सके.
कुछ ही देर में संजना बाहर आ गयी, उसके हाथ में एक ब्रीफ़कसे था, वही शायद वो लेने आई थी | पर कार की तरफ आते हुए वो जिस अंदाज से लड़खड़ा कर चल रही थी उससे सॉफ पता चल रहा था की वो अंदर पेग लगा कर आई है | निमेश तो उसके महकते हुए जिस्म और बहकति हुई चाल देखकर कुछ करने के सपने देखने लगा.
जब वो बाहर निकले तो कुछ आगे आकर संजना अपनी बहकती हुई आवाज़ में बोली : “निमेश, मुझे ज़ोर से सुस्सू लगा है .”
उसकी इस बात को सुनकर निमेश भी हँसे बिना नही रह सका शायद ‘सुस्सू’ वर्ड सुनकर
ये काम तो वो अपनी फ्रेंड के घर भी कर सकती थी
पर वो कहते है ना, चुदाई की भूख और इंसान का सुस्सू कभी भी लग सकता है
शायद वही हाल संजना मेडम का भी हो रहा था.
निमेश के दिमाग़ में एक शरारत आ चुकी थी | वो चाहता तो गाड़ी को किसी फेमस रेस्टोरेंट या माल के पास रोक सकता था, जहाँ संजना मेडम अपना मूत निकाल सकती थी | पर उसने ऐसा किया नही | वो गाड़ी चलाता रहा क्योंकि उसे पता था की रास्ते में एक सुनसान रास्ता भी आता है जहाँ सड़क के दोनो तरफ पेड़ ही पेड़ है.
वहां पहुँचते-2 संजना भी मचलने लगी थी, उसे देखकर सॉफ पता चल रहा था की कितना तेज लगा है उसे.. | निमेश ने एक सुनसान सी जगह देखकर गाड़ी पगडंडी पर उतार दी | और घने झाड़ के पास पहुँचकर बोला : “मेडम जी जल्दी से कर लो यहाँ कोई नही देखेगा |
ये सुनकर तो संजना भी हैरान रह गयी | कहां वो हाइ सोसायटी में रहने वाली अमीर औरत और ये निमेश उसे गँवार औरतों की तरह, खुल्ले में मूतने के लिए कह रहा है और वो भी ज़मीन पर बैठकर आज तक वो बिना कमोड के कहीं बैठी ही नही थी
इसलिए गुस्सा उसके चेहरे पर सॉफ देखा जा सकता था.
पर ये वक़्त गुस्सा करने का था ही नही, उसके पास टाइम ही नही था उसे लग रहा था की थोड़ी देर और रही तो उसका मूत निकल जाएगा
इसलिए जगह की परवाह ना करते हुए वो गाड़ी से उतरी और भागकर घनी झाड़ियो के पीछे पहुँच गयी पर वहाँ अंधेरा ही इतना था की उसकी फट्ट कर हाथ में आ गयी.
उसने तुरंत निमेश को आवाज़ लगाई वो तो गाड़ी से निकल कर जैसे इसी पल की प्रतीक्षा कर रहा था निमेश भागता हुआ उसके करीब आया..
संजना : “निमेश, ये ये कैसी जगह है इतना अंधेरा मुझे तो बड़ा डर सा लग रहा है ..तुम .तुम .यहीं रुकना .पर इधर मत देखना . ओके ‘ और निमेश के जवाब की प्रतीक्षा किए बिना ही वो दूसरी तरफ घूमी और अपनी टाइट स्लैक्स को नीचे करके ज़मीन पर मोरनी बनकर बैठ गयी
निमेश इतना कमीना था की उसने दूसरी तरफ मुँह किया ही नही था और अंधेरे में ही सही पर उसने चाँद को बहुत करीब से देखा गोल गुंबद के आकार की कसी हुई गांड, जिसे जीन्स में देखकर उसकी आहह निकल गयी थी, निमेश से मात्र 2 फीट की दूरी पर थी और नीचे बैठकर जब सुरर्र की आवाज़ के साथ उसका गोल्डन पानी बाहर निकला तो उसकी महक से निमेश अंदर तक सिहर गया . ऐसी फीलिंग तो देसी पीकर भी नही आती थी.
इतने बड़े रुतबे वाले इंसान, जो एक मंत्री भी है, उन्हे अपनी बीवी से इस तरह से हंस-2 कर बातें करते देखकर वो हैरान रह गया.
पर जिस अंदाज से वो नम्रता को देख रहे थे, उसकी गोलाइयों को घूर रहे थे, और जिस अपनेपन से उसके साथ बातें कर रहे थे, उसे देखकर निमेश एक ही पल में समझ गया की वो भी उसी की तरह हरामी इंसान है..
वो उनकी बीवी संजना की मारने के सपने देख रहा है और ये साहब अपनी हॉट बीवी को छोड़कर उसकी देहाती बीवी के पीछे पड़े हैं
किसी ने सही कहा है, जो चीज़ जिसके पास होती है उसकी कद्र नही होती
पर ये एक ऐसी सिचुएशन थी जिसमें दोनो ही अपनी नही बल्कि दूसरे की बीवी की कद्र कर रहे थे
वैसे ये तो आम बात है हमारे समाज में, इसलिए इन्हे भी दोष देना सही नही है.
निमेश को आता देखकर अरुण बातें करता हुआ रुक सा गया और उससे बोला : “अर्रे, निमेश, उठ गये तुम, मैं तुम्हे ही बुलाने आया था वो ज़रा मेमसाहब को कुछ समान लेने अपनी एक फ्रेंड के घर जाना है तुम ज़रा उन्हे ले जाओ..”
निमेश जब जाने लगा तो अरुण साहब बोले : “और हाँ , आज जो तुमने क्लब में संजना की हेल्प की , उसके लिए थेंक्स वो बता रही थी की कैसे तुमने उसे वो खेल जीतने में हेल्प की गुड वर्क निमेश वापिस आओगे तो ज़रा मेरे साथ भी 2-2 हाथ करना, शायद मुझे भी तुमसे कुछ सीखने को मिल जाए ”
निमेश मुस्कुराया और रात को खेलने की बात करके अंदर चला गया.
निमेश समझ गया की उसे बुलाने आना तो उसका बहाना था, असल में वो नम्रता से बाते करना चाहता था
पर इस वक़्त उसे नम्रता की फ़िक्र से ज़्यादा संजना मेडम का लालच हो रहा था
वो तुरंत तैय्यार होकर संजना मेडम की कार में पहुँच गया.
हमेशा की तरह संजना ने ग़ज़ब की ड्रेस पहनी हुई थी, जिसमें उसके हर एक अंग को सॉफ देखा जा सकता था..
![[Image: 1577763_002_fce9.jpg]](https://images.pornpics.com/1280/201807/09/1577763/1577763_002_fce9.jpg)
अंदर बैठते ही संजना ने उसे एड्रेस समझाया और वो चल दिया
बेक मिरर से वो देख पा रहा था की उनके चेहरे पर कितनी चमक है
वो मोबाइल पर अपनी उसी फ्रेंड से बात कर रही थी, जिसके घर जाना था, और उसके हिलते हुए होंठ देखकर उन्हे चूसने का लालच निमेश में बढ़ता चला गया..
और अपने इस टाइम को कैसे इस्तेमाल करना है, ये भी वो सोचने लगा.
वहां पहुँचकर संजना अपनी गांड मटकाती हुई अंदर चली गयी
वो भी एक मंत्री का बंगला था
गाड़ी जब अंदर पहुँची तो संजना की फ्रेंड उसे लेने के लिए बाहर तक आ गयी
और उसे देखकर निमेश ने पहचाना की ये तो सुबह वाली किटी पार्टी में भी थी
निमेश को देखकर वो मुस्कुरा दी उसने भी सिर झुकाकर उसे नमस्ते किया..
वो भी काफ़ी हॉट लग रही थी.. गुलाबी साड़ी में उसका कसा हुआ शरीर काफ़ी सैक्सी लग रहा था.
![[Image: 6646755_b92ff83.jpg]](https://content.wafflegirl.com/galleries/content/6/646/6646755_b92ff83.jpg)
निमेश भी सोचने लगा की ये अमीर लोग भला घर में भी ऐसे सज धजकर क्यो बैठते है.
खैर, संजना के जाने के बाद वो करीब 1 घंटा कार में बैठा उसका इंतजार करता रहा
घर जाकर अरुण साहब के साथ ताश का खेल भी तो खेलना था
उसके पीने का भी टाइम हो गया था | घर पर एक बॉटल पड़ी थी, बस वो संजना का इंतजार कर रहा था ताकि वो जल्द से जल्द घर जा सके.
कुछ ही देर में संजना बाहर आ गयी, उसके हाथ में एक ब्रीफ़कसे था, वही शायद वो लेने आई थी | पर कार की तरफ आते हुए वो जिस अंदाज से लड़खड़ा कर चल रही थी उससे सॉफ पता चल रहा था की वो अंदर पेग लगा कर आई है | निमेश तो उसके महकते हुए जिस्म और बहकति हुई चाल देखकर कुछ करने के सपने देखने लगा.
जब वो बाहर निकले तो कुछ आगे आकर संजना अपनी बहकती हुई आवाज़ में बोली : “निमेश, मुझे ज़ोर से सुस्सू लगा है .”
उसकी इस बात को सुनकर निमेश भी हँसे बिना नही रह सका शायद ‘सुस्सू’ वर्ड सुनकर
ये काम तो वो अपनी फ्रेंड के घर भी कर सकती थी
पर वो कहते है ना, चुदाई की भूख और इंसान का सुस्सू कभी भी लग सकता है
शायद वही हाल संजना मेडम का भी हो रहा था.
निमेश के दिमाग़ में एक शरारत आ चुकी थी | वो चाहता तो गाड़ी को किसी फेमस रेस्टोरेंट या माल के पास रोक सकता था, जहाँ संजना मेडम अपना मूत निकाल सकती थी | पर उसने ऐसा किया नही | वो गाड़ी चलाता रहा क्योंकि उसे पता था की रास्ते में एक सुनसान रास्ता भी आता है जहाँ सड़क के दोनो तरफ पेड़ ही पेड़ है.
वहां पहुँचते-2 संजना भी मचलने लगी थी, उसे देखकर सॉफ पता चल रहा था की कितना तेज लगा है उसे.. | निमेश ने एक सुनसान सी जगह देखकर गाड़ी पगडंडी पर उतार दी | और घने झाड़ के पास पहुँचकर बोला : “मेडम जी जल्दी से कर लो यहाँ कोई नही देखेगा |
ये सुनकर तो संजना भी हैरान रह गयी | कहां वो हाइ सोसायटी में रहने वाली अमीर औरत और ये निमेश उसे गँवार औरतों की तरह, खुल्ले में मूतने के लिए कह रहा है और वो भी ज़मीन पर बैठकर आज तक वो बिना कमोड के कहीं बैठी ही नही थी
इसलिए गुस्सा उसके चेहरे पर सॉफ देखा जा सकता था.
पर ये वक़्त गुस्सा करने का था ही नही, उसके पास टाइम ही नही था उसे लग रहा था की थोड़ी देर और रही तो उसका मूत निकल जाएगा
इसलिए जगह की परवाह ना करते हुए वो गाड़ी से उतरी और भागकर घनी झाड़ियो के पीछे पहुँच गयी पर वहाँ अंधेरा ही इतना था की उसकी फट्ट कर हाथ में आ गयी.
उसने तुरंत निमेश को आवाज़ लगाई वो तो गाड़ी से निकल कर जैसे इसी पल की प्रतीक्षा कर रहा था निमेश भागता हुआ उसके करीब आया..
संजना : “निमेश, ये ये कैसी जगह है इतना अंधेरा मुझे तो बड़ा डर सा लग रहा है ..तुम .तुम .यहीं रुकना .पर इधर मत देखना . ओके ‘ और निमेश के जवाब की प्रतीक्षा किए बिना ही वो दूसरी तरफ घूमी और अपनी टाइट स्लैक्स को नीचे करके ज़मीन पर मोरनी बनकर बैठ गयी
निमेश इतना कमीना था की उसने दूसरी तरफ मुँह किया ही नही था और अंधेरे में ही सही पर उसने चाँद को बहुत करीब से देखा गोल गुंबद के आकार की कसी हुई गांड, जिसे जीन्स में देखकर उसकी आहह निकल गयी थी, निमेश से मात्र 2 फीट की दूरी पर थी और नीचे बैठकर जब सुरर्र की आवाज़ के साथ उसका गोल्डन पानी बाहर निकला तो उसकी महक से निमेश अंदर तक सिहर गया . ऐसी फीलिंग तो देसी पीकर भी नही आती थी.
![[Image: 1251120_5a4b541.jpg]](https://cdncontent.xxxwaffle.com/content/1/251/1251120_5a4b541.jpg)