15-10-2022, 11:29 PM
सभी रीडर्स को मेरा नमस्कार।
मेरा नाम साहिल है, मैं दिल्ली के पास बसे एक छोटे से गांव से हूं और हमारी एक ज्वाइंट फैमिली है जिसमे मेरे पापा के तीन भाई हैं, सभी उनसे छोटे हैं। मेरे चाचा एक सॉफ्टवेयर कंपनी में नोएडा काम करते हैं और अक्सर वीकेंड पर ही घर आया करते हैं। मेरी उम्र 19 साल है और मैं शांत स्वभाव का घर में सबका लाडला हूं। मैं ये सैक्स वेगेरा की बातों से अनजान कुछ अच्छे दोस्तों की संगति में अपना जीवन गुजार रहा था। मुझे लोड़ा चूत का तो मानो कोई ज्ञान ही नहीं था कुछ समय पहले तक।
हाल ही में मेरे सबसे छोटे चाचा जी की शादी बड़े धूम धाम से हुई, भाभी की उनके घर से डोली विदा हुई और उन्हे हमारे घर लाया गया। उनकी शादी की रात तो मानों यूं ही बीत गई रस्मों में । फिर सुबह चाचा को पापा के साथ कहीं अर्जेंट जाना था तो वो चले गए। बाकी के घर के बड़े लोग भी अपने अपने काम पर चले गए। मेरी जिंदगी में तब बदलाव आया जब मेरे चाचा की शादी हुई , हुआ यूं की हमारा कमरा चाचा के कमरे के साथ ही था नीचे वाले फ्लोर पर और नीचे जो बाथरूम था वो साझा ही था और मेरे दूसरे दोनो चाचा का कमरा ऊपर था। दोनो कमरों के बाहर एक सोफा रखा हुआ था जहां पर बैठकर हम सब टीवी देखा करते थे। और सोफा के बैकसाइड में किचन था जहां सबका खाना बना करता था।
मैं सोफे पर लेटकर फोन चला रहा था और पीछे किचन में सामने मम्मी, मेरी छोटी चाची, सब मिलके मेरी नई चाची की टांग खींच रहे थे के प्रिया तुम्हारी सुहागरात कैसी रही। लेकिन भाभी बहुत ही ज्यादा शर्मा रही थी । मेरी दूसरी चाची के दो तीन बार कहने पर प्रिया चाची बोली।
प्रिया : अरे भाभी आप भी ना, वो रात तो बस थके हुए थे तो सुहागरात मनाई ही नहीं
चाची बोली : ओहो, प्रिया, तो इसमें क्या आज माना लेना
प्रिया : जी भाभी
तभी मम्मी बीच में बोल पड़ी : सीमा, तु इसे कुछ सीखा तो दे के सुहागरात में करना कया है, बेचारी की पहली सुहागरात हैं , कहीं बेकार न चली जाए।
सीमा मेरी चाची का नाम है।
चाची : अरे भाभी, ये आजकल की लड़किया हैं, इन्हें कुछ सिखाने की जरूरत थोड़ी ना है। इन्हें सब पता है
और दोनो हसने लगीं , इधर प्रिया चाची शर्मा रही थी
तभी मम्मी बोली : अरे रे, फिर भी एक बार पूछ ले , क्या पता कुछ टिप्स की जरूरत हो।
चाची बोली : क्यूं प्रिया , क्या तुम्हे कुछ टिप्स की जरूरत है या खुद संभाल लोगी सब।
प्रिया चाची : शरमाती हुई बोली, अरे भाभी इसमें टिप्स कैसी। जो सब करते हैं वही तो करना है।
मम्मी बोली : ओहो , देखो तो , जो सब करते हैं वही तो करना है। अच्छा बता तो जरा हमे भी के सब क्या करते हैं जो तु भी करेगी।
ऐसा बोलकर मम्मी और चाची थोड़ा थोड़ा मुस्कुराने लगी
चाची : अरे दीदी आप भी ना।
प्रिया : भाभी आप भी ना ।
मम्मी : अरे बोल ना यार क्यूं शर्मा रही है हमसे । हम तो सुहागरात कब की मना चुके हैं और हम भी तो जानें के आजकल के जवान केसे सुहागरात मनाते हैं। बोल बोल शर्मा मत, वैसे भी हमारे अलावा और है ही कोन यहाँ।
वो सब बेखबर थे के मैं पीछे सोफे पर लेटकर उनकी बातें सुन रहा था।
तभी प्रिया चाची बोली : अरे भाभी, वहीं करेंगे ना जो सब करते हैं।
चाची : अरे बता भी दे , क्यूं शर्माती है हमारे सामने।
प्रिया चाची : अच्छा बताती हूं , आप ऐसे तो मानोगी नहीं, मैं एक नाइटी लाई हुईं ट्रांसपेरेंट वाली स्पेशल सुहागरात के लिए। और वो डालकर......ऐसा बोलकर चाची चुप हो गई।
मम्मी एक्साइटिड होकर : डालकर...आगे क्या
प्रिया चाची मुस्कुराने लगी और बोली : आगे बस वही सब और भाग कर कमरे में चली गई।
फिर मम्मी और चाची मिलकर खाना बनाने लगे और तकरीबन 15 मिनट बाद चाची आई और कुछ उदास सी लग रही थी और बोली
प्रिया चाची : भाभी वो आपसे एक काम था।
मम्मी : हां बोलो
प्रिया चाची : वो भाभी आपसे अकेले में एक काम था।
चाची : अच्छा जी , अभी से हमे पराया कर दिया।
प्रिया चाची : नहीं भाभी ऐसी बात नहीं हैं।
चाची : फिर कैसी है
मम्मी : अरे बोल प्रिया क्या हुआ , क्यूं इतनी परेशान है।
प्रिया चाची : दरअसल बात ये है के मैं, भाभी केसे कहूं मुझे शर्म आ रही है।
मम्मी : अरे बोल भी, शर्मा मत।
प्रिया चाची : दरअसल वो मैं, भाभी मैं, वो,...भाभी मुझे आपकी मदद चाइए, मैं अपने नीचे के बाल साफ़ करवाना भूल गई पार्लर वाली से और अब........
तभी मम्मी और चाची हसने लगे और
मम्मी : लो जी देख ले सीमा, तू कहती थी आज की लड़कियां तो बहुत तेज हैं इस मामले में , ये इतनी तेज होंगी
चाची : अरे छोड़ो भी भाभी ..लो खाना बस बन ही गया है आप जाओ और जाकर कर दो जमीन साफ फिर रात में इसपर देवर जी ने अपना हल भी चलाना है और सभी हसने लगे।
मम्मी : हां आजा तू भी तेरी जमीन साफ कर देती हुं और तु भी अपने पति से हल चलवा लेना।
चाची : अरे भाभी मन तो मेरा भी बहुत करता है हल चलवाने का पर अब हल चलाने वाले में वो बात कहां जो पहले थी।
मम्मी : ओहो, देखो तो पूरी ही लुच्ची हो रखी है तु तो
फिर सभी हसने लगे और खाना बनाकर प्रिया चाची और मम्मी चाची के रूम के जा ही रहे थे के पीछे से चाची बोली
चाची : प्रिया वो वैक्स थोड़ी सी ज्यादा हो तो मुझे भी देना काम होने के बाद।
प्रिया चाची : अरे दीदी बहुत है, आजाओ आप भी करवा ही लो लगे हाथ।
मम्मी : हां सीमा , आ जा तु भी।
फिर तीनों चाची के कमरे में गई और कमरा अंदर से बंद कर लिया
मैं बेचैन चुपचाप सोफे पर बैठा रहा और सोचता रहा। अब कैसे ये वैक्स वाला दृश्य देखा जाए। फिर उठकर घर से बाहर बरामदे में गया और सोचा क्यूं ना खिड़की से देखूं फिर जब खिड़की के पास गया तो खिड़की बंद थी। फिर मैं अपनी किस्मत को कोस कर बैठ गया।
मेरा नाम साहिल है, मैं दिल्ली के पास बसे एक छोटे से गांव से हूं और हमारी एक ज्वाइंट फैमिली है जिसमे मेरे पापा के तीन भाई हैं, सभी उनसे छोटे हैं। मेरे चाचा एक सॉफ्टवेयर कंपनी में नोएडा काम करते हैं और अक्सर वीकेंड पर ही घर आया करते हैं। मेरी उम्र 19 साल है और मैं शांत स्वभाव का घर में सबका लाडला हूं। मैं ये सैक्स वेगेरा की बातों से अनजान कुछ अच्छे दोस्तों की संगति में अपना जीवन गुजार रहा था। मुझे लोड़ा चूत का तो मानो कोई ज्ञान ही नहीं था कुछ समय पहले तक।
हाल ही में मेरे सबसे छोटे चाचा जी की शादी बड़े धूम धाम से हुई, भाभी की उनके घर से डोली विदा हुई और उन्हे हमारे घर लाया गया। उनकी शादी की रात तो मानों यूं ही बीत गई रस्मों में । फिर सुबह चाचा को पापा के साथ कहीं अर्जेंट जाना था तो वो चले गए। बाकी के घर के बड़े लोग भी अपने अपने काम पर चले गए। मेरी जिंदगी में तब बदलाव आया जब मेरे चाचा की शादी हुई , हुआ यूं की हमारा कमरा चाचा के कमरे के साथ ही था नीचे वाले फ्लोर पर और नीचे जो बाथरूम था वो साझा ही था और मेरे दूसरे दोनो चाचा का कमरा ऊपर था। दोनो कमरों के बाहर एक सोफा रखा हुआ था जहां पर बैठकर हम सब टीवी देखा करते थे। और सोफा के बैकसाइड में किचन था जहां सबका खाना बना करता था।
मैं सोफे पर लेटकर फोन चला रहा था और पीछे किचन में सामने मम्मी, मेरी छोटी चाची, सब मिलके मेरी नई चाची की टांग खींच रहे थे के प्रिया तुम्हारी सुहागरात कैसी रही। लेकिन भाभी बहुत ही ज्यादा शर्मा रही थी । मेरी दूसरी चाची के दो तीन बार कहने पर प्रिया चाची बोली।
प्रिया : अरे भाभी आप भी ना, वो रात तो बस थके हुए थे तो सुहागरात मनाई ही नहीं
चाची बोली : ओहो, प्रिया, तो इसमें क्या आज माना लेना
प्रिया : जी भाभी
तभी मम्मी बीच में बोल पड़ी : सीमा, तु इसे कुछ सीखा तो दे के सुहागरात में करना कया है, बेचारी की पहली सुहागरात हैं , कहीं बेकार न चली जाए।
सीमा मेरी चाची का नाम है।
चाची : अरे भाभी, ये आजकल की लड़किया हैं, इन्हें कुछ सिखाने की जरूरत थोड़ी ना है। इन्हें सब पता है
और दोनो हसने लगीं , इधर प्रिया चाची शर्मा रही थी
तभी मम्मी बोली : अरे रे, फिर भी एक बार पूछ ले , क्या पता कुछ टिप्स की जरूरत हो।
चाची बोली : क्यूं प्रिया , क्या तुम्हे कुछ टिप्स की जरूरत है या खुद संभाल लोगी सब।
प्रिया चाची : शरमाती हुई बोली, अरे भाभी इसमें टिप्स कैसी। जो सब करते हैं वही तो करना है।
मम्मी बोली : ओहो , देखो तो , जो सब करते हैं वही तो करना है। अच्छा बता तो जरा हमे भी के सब क्या करते हैं जो तु भी करेगी।
ऐसा बोलकर मम्मी और चाची थोड़ा थोड़ा मुस्कुराने लगी
चाची : अरे दीदी आप भी ना।
प्रिया : भाभी आप भी ना ।
मम्मी : अरे बोल ना यार क्यूं शर्मा रही है हमसे । हम तो सुहागरात कब की मना चुके हैं और हम भी तो जानें के आजकल के जवान केसे सुहागरात मनाते हैं। बोल बोल शर्मा मत, वैसे भी हमारे अलावा और है ही कोन यहाँ।
वो सब बेखबर थे के मैं पीछे सोफे पर लेटकर उनकी बातें सुन रहा था।
तभी प्रिया चाची बोली : अरे भाभी, वहीं करेंगे ना जो सब करते हैं।
चाची : अरे बता भी दे , क्यूं शर्माती है हमारे सामने।
प्रिया चाची : अच्छा बताती हूं , आप ऐसे तो मानोगी नहीं, मैं एक नाइटी लाई हुईं ट्रांसपेरेंट वाली स्पेशल सुहागरात के लिए। और वो डालकर......ऐसा बोलकर चाची चुप हो गई।
मम्मी एक्साइटिड होकर : डालकर...आगे क्या
प्रिया चाची मुस्कुराने लगी और बोली : आगे बस वही सब और भाग कर कमरे में चली गई।
फिर मम्मी और चाची मिलकर खाना बनाने लगे और तकरीबन 15 मिनट बाद चाची आई और कुछ उदास सी लग रही थी और बोली
प्रिया चाची : भाभी वो आपसे एक काम था।
मम्मी : हां बोलो
प्रिया चाची : वो भाभी आपसे अकेले में एक काम था।
चाची : अच्छा जी , अभी से हमे पराया कर दिया।
प्रिया चाची : नहीं भाभी ऐसी बात नहीं हैं।
चाची : फिर कैसी है
मम्मी : अरे बोल प्रिया क्या हुआ , क्यूं इतनी परेशान है।
प्रिया चाची : दरअसल बात ये है के मैं, भाभी केसे कहूं मुझे शर्म आ रही है।
मम्मी : अरे बोल भी, शर्मा मत।
प्रिया चाची : दरअसल वो मैं, भाभी मैं, वो,...भाभी मुझे आपकी मदद चाइए, मैं अपने नीचे के बाल साफ़ करवाना भूल गई पार्लर वाली से और अब........
तभी मम्मी और चाची हसने लगे और
मम्मी : लो जी देख ले सीमा, तू कहती थी आज की लड़कियां तो बहुत तेज हैं इस मामले में , ये इतनी तेज होंगी
चाची : अरे छोड़ो भी भाभी ..लो खाना बस बन ही गया है आप जाओ और जाकर कर दो जमीन साफ फिर रात में इसपर देवर जी ने अपना हल भी चलाना है और सभी हसने लगे।
मम्मी : हां आजा तू भी तेरी जमीन साफ कर देती हुं और तु भी अपने पति से हल चलवा लेना।
चाची : अरे भाभी मन तो मेरा भी बहुत करता है हल चलवाने का पर अब हल चलाने वाले में वो बात कहां जो पहले थी।
मम्मी : ओहो, देखो तो पूरी ही लुच्ची हो रखी है तु तो
फिर सभी हसने लगे और खाना बनाकर प्रिया चाची और मम्मी चाची के रूम के जा ही रहे थे के पीछे से चाची बोली
चाची : प्रिया वो वैक्स थोड़ी सी ज्यादा हो तो मुझे भी देना काम होने के बाद।
प्रिया चाची : अरे दीदी बहुत है, आजाओ आप भी करवा ही लो लगे हाथ।
मम्मी : हां सीमा , आ जा तु भी।
फिर तीनों चाची के कमरे में गई और कमरा अंदर से बंद कर लिया
मैं बेचैन चुपचाप सोफे पर बैठा रहा और सोचता रहा। अब कैसे ये वैक्स वाला दृश्य देखा जाए। फिर उठकर घर से बाहर बरामदे में गया और सोचा क्यूं ना खिड़की से देखूं फिर जब खिड़की के पास गया तो खिड़की बंद थी। फिर मैं अपनी किस्मत को कोस कर बैठ गया।