Thread Rating:
  • 0 Vote(s) - 0 Average
  • 1
  • 2
  • 3
  • 4
  • 5
औरतों को बिना इजाज़त नग्न करती टेक्नोलॉजी
#1
औरतों को बिना इजाज़त नग्न करती टेक्नोलॉजी








banghead
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply
Do not mention / post any under age /rape content. If found Please use REPORT button.
#2
[Image: deep-fake-feature-1_010719-123411.jpg?size=800:450]
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
[+] 1 user Likes neerathemall's post
Like Reply
#3
डीपफ़ेक दो शब्दों के मेल से बनता है. ‘डीप लर्निंग’ और ‘फ़ेक’. डीप लर्निंग, आर्टिफीशियल इंटेलिजेंस का एक हिस्सा है. आर्टिफीशियल इंटेलिजेंस को सरल शब्दों में समझें तो ऐसी टेक्नोलॉजी, जो खुद काम कर सकती है, अपनी अक्ल लगाकर. जैसे आप गूगल असिस्टेंट से कह दें कि म्यूजिक बजाओ. उसमें आपको खुद उठकर म्यूजिक प्ले नहीं करना पड़ता. इंसानी दिमाग के जितना करीब हो, आर्टिफीशियल इंटेलिजेंस उतनी ही बेहतर मानी जाएगी.

डीपफ़ेक, ‘ह्यूमन इमेज सिंथेसिस’ नाम की टेक्नोलॉजी पर काम करता है. जैसे हम किसी भी चीज की फोटोकॉपी कर लेते हैं. वैसे ही ये टेक्नोलॉजी चलती-फिरती चीजों की कॉपी कर सकती है. यानी स्क्रीन पर एक इंसान आप चलते-फिरते, बोलते देख सकते हैं, जो नकली हो.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply
#4
इस टेक्नोलॉजी की नींव पर बनी एप्स बेहद नुकसान पहुंचा सकती हैं. इससे किसी एक व्यक्ति के चेहरे पर, दूसरे का चेहरा लगाया जा सकता है. वो भी इतनी सफ़ाई और बारीकी से, कि नीचे वाले चेहरे के सभी हाव-भाव तक ऊपर वाले चेहरे पर दिख सकते हैं. ये उसी तरह है जैसे एकता कपूर के सीरियल में प्लास्टिक सर्जरी से पुराने चेहरे को नया चेहरा मिल जाता है. और लोगों को लगता है कि सारे काम वो व्यक्ति कर रहा है, जिसका चेहरा दिख रहा है.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply
#5
सका इस्तेमाल हम जैसे करते हैं, उससे हमारी कुंठाओं का पता चलता है. एक सोशल मीडिया प्लेटफार्म है ‘रेडिट’. फेसबुक या ट्विटर से अलग, ये एक डिस्कशन फोरम है. अलग-अलग टॉपिक के थ्रेड होते हैं इधर. रेडिट पर एक यूजर ने सबसे पहले आर्टिफीशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल करते हुए फ़ेक वीडियो डाला. यूजर का नाम था ‘डीपफ़ेक’. यहीं से पॉर्न की एक नई केटेगरी चालू हुई.

2 साल पुरानी इस टेक्नोलॉजी का शिकार हर मशहूर एक्ट्रेस हो चुकी है. इन नामों की गिनती ख़त्म नहीं होती. एंजलीना जोली, वंडर वुमन वाली गाल गदोत, हैरी पॉटर वाली एमा वॉटसन, गेम ऑफ़ थ्रोंस में मार्जरी का किरदार निभाने वाली नेटली डोर्मर, थॉर और ब्लैक स्वान जैसी फिल्मों में दिखीं नेटली पोर्टमन, कोई इससे नहीं बचा है. इंडिया में ऐश्वर्या, कटरीना, प्रियंका चोपड़ा और तमाम एक्ट्रेसेज के इस तरह के नकली वीडियो फैलाने की कोशिश की गई है.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply
#6
टीवी और फिल्मों में दिखने वाली एक्ट्रेस, असल में न्यूड कैसी लगेंगी. या पॉर्नोग्राफिक वीडियो में कैसी दिखेंगी, ये देखने की लोगों में कितनी तड़प है, वो इन वीडियोज की संख्या को देखकर पता लगता है. मशहूर औरत को नग्न देखने की चाह और उसका ये नतीजा बेहद खतरनाक है. मगर इससे भी खतरनाक एक और चीज है. जिसे हम रिवेंज पॉर्न के नाम से जानते हैं.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply
#7
.









































फ्रैंकेंस्टाइन्स मॉन्स्टर

आज से 200 साल पहले मेरी शेली नाम की औरत ने एक किताब लिखी थी. जिसमें एक नामी और टैलेंटेड साइंटिस्ट सोचता है कि वो क्रांति लाएगा. मेडिसिन की दुनिया में ऐसा एक्सपेरिमेंट करेगा, जिससे वस्तुओं में जान फूंक देगा. उसका सपना था कि वो इतना सक्सेसफुल हो, कि लोगों के हाथ-पैर अगर कभी कट गए तो वापस उग आएं, वो एक ऐसे प्रोसीजर को ईजाद करे.

एक्सपेरिमेंट के दौरान वो एक मॉन्स्टर यानी राक्षस को जन्म दे देता है. जो आउट ऑफ़ कंट्रोल है. जिसे रोकने का कोई तरीका नहीं है. जो धरती पर ज़लज़ला ला सकता है.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply
#8
अगर आर्टिफीशियल इंटेलीजेंस का इस्तेमाल लड़कियों को नग्न करने के लिए किया जाता रहेगा. तो इसे फ्रैंकेंस्टाइन्स मॉन्स्टर ही पुकारना पड़ेगा.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply
#9
Code:
https://www.thelallantop.com/tehkhana/deepfake-the-worst-form-of-artificial-intelligence-promoting-misogyny-and-sexism/
S
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply
#10
(15-01-2020, 11:17 AM)neerathemall Wrote:
Code:
https://www.thelallantop.com/tehkhana/deepfake-the-worst-form-of-artificial-intelligence-promoting-misogyny-and-sexism/
S

Deepfake is inevitable. The only way is for girls to not share too many pics, especially on internet.
[Image: 19459419.gif]
Treat a girl like a bitch in the bedroom and like a goddess everywhere else. - Nirmalafoxy;
Like Reply
#11
(15-01-2020, 11:12 AM)neerathemall Wrote:
[Image: deep-fake-feature-1_010719-123411.jpg?size=800:450]

(17-01-2020, 07:13 PM)Foxykavita Wrote: Deepfake is inevitable. The only way is for girls to not share too many pics, especially on internet.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply




Users browsing this thread: 1 Guest(s)