09-08-2019, 05:25 PM
अब यह बताओ कि उपासना कल की वारदात से कितनी नाराज है?
विक्रम- नाराजगी का तो पता नहीं लेकिन उसे समझ में नहीं आया कि कल क्या हुआ? शायद वह सदमे में हो। लेकिन उसने ज्यादा प्रतिक्रिया नहीं दी। अभी तो मुझसे ही इस सवाल का जवाब पूछने के लिए कहा कि आखिर भैया ने ऐसा क्यों किया?
मैं- देखो प्यारे भाई विक्रम! माना कल मुझसे गलती हो गई है, इस बात को एक बार साइड में रखो और स्वयं रात भर रुक कर सोचो कि जो हम करते रहे क्या वो जीवन की सबसे आनंददायक चीज नहीं है? स्वयं को मेरी जगह रख कर सोचना कि तुम अपनी पत्नी तृप्ति के साथ तथा सलहज सीमा के साथ भी चुदाई का आनंद ले रहे हो और सीमा और उसका पति श्लोक भी मजे से अपने चुदाई वाले जीवन का आनंद उठा रहे हैं। उसके बाद सोचना कि हम जो कर रहे थे वह क्या गलत था? कल फिर शाम को हम दोनों यहां बैठकर उस घटना के सही गलत के बारे में बात करेंगे जो कि गलती से मुझसे बीती रात उपासना के साथ हुई। आज रात के लिए कैसे ना कैसे करके उपासना को समझा लो। मैं उसकी नजर में ना खटकूं इसलिए मैं अभी बाहर होटल में जाकर रात बिता लेता हूं। कल ऑफिस मत आना और दिन भर सोच कर शाम को मिलते हैं।
विक्रम- ठीक है भैया, बहुत रात हो गई है। हम सुबह बात करते हैं।
मैं विक्रम को छत पर छोड़ कर होटल चला आया और वहीं पर रूम लेकर रात में रुका।
मैंने विक्रम को स्वयं की जगह पर रखकर यह सोचने के लिए कहा था कि हमारे चारों के द्वारा अपनी मर्जी से किए गए अदला-बदली के कार्यक्रम में क्या गलत है? और मुझे पूर्ण विश्वास था कि कल शाम को विक्रम का जवाब क्या होगा। क्या हमारे द्वारा की गई अदला-बदली को वह गलत बताएगा? मुझे लगता था- बिल्कुल नहीं। इसके पीछे कारण था क्योंकि यह सब सोचने के लिए उसे यह भी सोचना पड़ेगा कि वह तृप्ति की अपनी बीवी की तरह चुदाई कर रहा है। उसके बाद सीमा की चुदाई कर रहा है और वह भी दोनों की मर्जी से, अपने पूर्ण रूप के मजे के साथ।
अब बताइए मित्रो! जिसे चोदने के लिए तमन्ना भाटिया जैसे शरीर की रूप की मालकिन तथा सीमा के रूप में कृति सेनन जैसी हीरोइन वाले शरीर की मालकिन की संपूर्ण चुदाई करने का मौका मिल रहा हो उसे यह बुरा कैसा लग सकता है। अतः मैं विक्रम की तरफ से चिंतित नहीं था। मैं तो उपासना की तरफ से चिंतित था कि शायद वह समझेगी या नहीं, किंतु यह समझकर मैं निश्चिंत हो गया था कि जब पति समझ जाएगा तो वह अपनी बीवी को समझा ही लेगा।
एक बार की हुई गलती को शायद ही इतना तुक देकर वे अपनी नाराजगी को बरकरार रखे।
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अगले शाम हम निश्चिंत हो करके होटल में ही मिले। आते ही मैंने विक्रम के हाव-भाव देखे और मुझे लगा कि वह मुझसे नाराज नहीं है। हमने बात शुरू की।
विक्रम- वाह भैया! वाह मान गए आपको। जीवन के असली मजे तो आपने ही लिए हैं। साली ना मिली तो साले की बीवी को ही घरवाली बना लिया। हम घर वाले तो सोच रहे थे कि भैया वहां पर अपने बिजनेस को बढ़ाने के लिए बड़ी मेहनत कर रहे हैं लेकिन यहां की तो कहानी ही अलग है। यहां तो रोज अय्याशी और साथ ही बदल-बदल कर चुदाई चल रही थी। साथी बदल कर चुदाई करना इतना अजीब नहीं लगा, यह तो आम बात है। लेकिन बस भाई-बहन की चुदाई का किस्सा मुझे थोड़ा दिमाग में खटका लेकिन जब जवान भाई बहन ही एक दूसरे से चुदाई चाहते हों तो क्या गलत है। खुशनसीब हो आप कि आपको सीमा जैसी सेक्सी महिला की भरपूर चुदाई करने का मौका मिला। सच बताता हूं कि जब सीमा की शादी में मैं गया था तब मेरे दिल में भी उसे देख कर खलबली मची थी कि आपका साला श्लोक लंबी पतली कमर वाली अप्सरा की चुदाई का मजा किस प्रकार लेगा।
मैं- चलो, विक्रम तुम तो समझे। लेकिन उपासना की इस पर क्या प्रतिक्रिया है? क्या उसे भी तुमने इसी प्रकार सब कुछ सच बता दिया? वह कहीं नाराज तो नहीं? और ऐसा तो नहीं सोच रही है कि वह कहां फंस गई है।
विक्रम- सच बताऊं भैया, जब मैंने उपासना को बताया कि यह गलती आपसे सीमा श्लोक से अदला-बदली करके चुदाई करने के कारण हुई है तो वह काफी आश्चर्य चकित हुई। एक बार तो वह मानने को भी तैयार नहीं थी कि ऐसा हो सकता है। फिर मैंने बातों-बातों में उसे कल्पना कर के सोचने को कहा और खुद को सीमा की जगह रख कर सोचने को कहा तो एक बार यह बात उसे उत्तेजित कर गयी। अंत में उसने मुस्कुरा कर कहा कि राज भैया से ग़लती हो गयी है इसके लिए अब उनसे नाता तो तोड़ नहीं सकते। वे काफी अच्छे हैं इसलिए उनको माफ कर देना चाहिए। इस कश्मकश में हम भले ही रात भर नहीं सो पाए हों लेकिन परिणाम ये ही निकला कि न उपासना आपसे नाराज है और न मैं। चलिए अब घर चलते हैं।
अतः हम दोनों ने होटल से चेक आउट किया और घर चले गए।
उपासना ने दोनों के लिये खाना रखा और हमने साथ में खाना खाया। इस दौरान उपासना की नजर झुकी रही। मैंने उपासना से बीती रात के लिए माफी मांगी। उसने मुस्कुरा कर 'इट्स ओ.के.' कहा। फिर हम अपने-अपने कमरे में जाकर सो गए।
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विक्रम- नाराजगी का तो पता नहीं लेकिन उसे समझ में नहीं आया कि कल क्या हुआ? शायद वह सदमे में हो। लेकिन उसने ज्यादा प्रतिक्रिया नहीं दी। अभी तो मुझसे ही इस सवाल का जवाब पूछने के लिए कहा कि आखिर भैया ने ऐसा क्यों किया?
मैं- देखो प्यारे भाई विक्रम! माना कल मुझसे गलती हो गई है, इस बात को एक बार साइड में रखो और स्वयं रात भर रुक कर सोचो कि जो हम करते रहे क्या वो जीवन की सबसे आनंददायक चीज नहीं है? स्वयं को मेरी जगह रख कर सोचना कि तुम अपनी पत्नी तृप्ति के साथ तथा सलहज सीमा के साथ भी चुदाई का आनंद ले रहे हो और सीमा और उसका पति श्लोक भी मजे से अपने चुदाई वाले जीवन का आनंद उठा रहे हैं। उसके बाद सोचना कि हम जो कर रहे थे वह क्या गलत था? कल फिर शाम को हम दोनों यहां बैठकर उस घटना के सही गलत के बारे में बात करेंगे जो कि गलती से मुझसे बीती रात उपासना के साथ हुई। आज रात के लिए कैसे ना कैसे करके उपासना को समझा लो। मैं उसकी नजर में ना खटकूं इसलिए मैं अभी बाहर होटल में जाकर रात बिता लेता हूं। कल ऑफिस मत आना और दिन भर सोच कर शाम को मिलते हैं।
विक्रम- ठीक है भैया, बहुत रात हो गई है। हम सुबह बात करते हैं।
मैं विक्रम को छत पर छोड़ कर होटल चला आया और वहीं पर रूम लेकर रात में रुका।
मैंने विक्रम को स्वयं की जगह पर रखकर यह सोचने के लिए कहा था कि हमारे चारों के द्वारा अपनी मर्जी से किए गए अदला-बदली के कार्यक्रम में क्या गलत है? और मुझे पूर्ण विश्वास था कि कल शाम को विक्रम का जवाब क्या होगा। क्या हमारे द्वारा की गई अदला-बदली को वह गलत बताएगा? मुझे लगता था- बिल्कुल नहीं। इसके पीछे कारण था क्योंकि यह सब सोचने के लिए उसे यह भी सोचना पड़ेगा कि वह तृप्ति की अपनी बीवी की तरह चुदाई कर रहा है। उसके बाद सीमा की चुदाई कर रहा है और वह भी दोनों की मर्जी से, अपने पूर्ण रूप के मजे के साथ।
अब बताइए मित्रो! जिसे चोदने के लिए तमन्ना भाटिया जैसे शरीर की रूप की मालकिन तथा सीमा के रूप में कृति सेनन जैसी हीरोइन वाले शरीर की मालकिन की संपूर्ण चुदाई करने का मौका मिल रहा हो उसे यह बुरा कैसा लग सकता है। अतः मैं विक्रम की तरफ से चिंतित नहीं था। मैं तो उपासना की तरफ से चिंतित था कि शायद वह समझेगी या नहीं, किंतु यह समझकर मैं निश्चिंत हो गया था कि जब पति समझ जाएगा तो वह अपनी बीवी को समझा ही लेगा।
एक बार की हुई गलती को शायद ही इतना तुक देकर वे अपनी नाराजगी को बरकरार रखे।
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अगले शाम हम निश्चिंत हो करके होटल में ही मिले। आते ही मैंने विक्रम के हाव-भाव देखे और मुझे लगा कि वह मुझसे नाराज नहीं है। हमने बात शुरू की।
विक्रम- वाह भैया! वाह मान गए आपको। जीवन के असली मजे तो आपने ही लिए हैं। साली ना मिली तो साले की बीवी को ही घरवाली बना लिया। हम घर वाले तो सोच रहे थे कि भैया वहां पर अपने बिजनेस को बढ़ाने के लिए बड़ी मेहनत कर रहे हैं लेकिन यहां की तो कहानी ही अलग है। यहां तो रोज अय्याशी और साथ ही बदल-बदल कर चुदाई चल रही थी। साथी बदल कर चुदाई करना इतना अजीब नहीं लगा, यह तो आम बात है। लेकिन बस भाई-बहन की चुदाई का किस्सा मुझे थोड़ा दिमाग में खटका लेकिन जब जवान भाई बहन ही एक दूसरे से चुदाई चाहते हों तो क्या गलत है। खुशनसीब हो आप कि आपको सीमा जैसी सेक्सी महिला की भरपूर चुदाई करने का मौका मिला। सच बताता हूं कि जब सीमा की शादी में मैं गया था तब मेरे दिल में भी उसे देख कर खलबली मची थी कि आपका साला श्लोक लंबी पतली कमर वाली अप्सरा की चुदाई का मजा किस प्रकार लेगा।
मैं- चलो, विक्रम तुम तो समझे। लेकिन उपासना की इस पर क्या प्रतिक्रिया है? क्या उसे भी तुमने इसी प्रकार सब कुछ सच बता दिया? वह कहीं नाराज तो नहीं? और ऐसा तो नहीं सोच रही है कि वह कहां फंस गई है।
विक्रम- सच बताऊं भैया, जब मैंने उपासना को बताया कि यह गलती आपसे सीमा श्लोक से अदला-बदली करके चुदाई करने के कारण हुई है तो वह काफी आश्चर्य चकित हुई। एक बार तो वह मानने को भी तैयार नहीं थी कि ऐसा हो सकता है। फिर मैंने बातों-बातों में उसे कल्पना कर के सोचने को कहा और खुद को सीमा की जगह रख कर सोचने को कहा तो एक बार यह बात उसे उत्तेजित कर गयी। अंत में उसने मुस्कुरा कर कहा कि राज भैया से ग़लती हो गयी है इसके लिए अब उनसे नाता तो तोड़ नहीं सकते। वे काफी अच्छे हैं इसलिए उनको माफ कर देना चाहिए। इस कश्मकश में हम भले ही रात भर नहीं सो पाए हों लेकिन परिणाम ये ही निकला कि न उपासना आपसे नाराज है और न मैं। चलिए अब घर चलते हैं।
अतः हम दोनों ने होटल से चेक आउट किया और घर चले गए।
उपासना ने दोनों के लिये खाना रखा और हमने साथ में खाना खाया। इस दौरान उपासना की नजर झुकी रही। मैंने उपासना से बीती रात के लिए माफी मांगी। उसने मुस्कुरा कर 'इट्स ओ.के.' कहा। फिर हम अपने-अपने कमरे में जाकर सो गए।
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