28-07-2019, 02:11 PM
(This post was last modified: 21-09-2020, 03:55 PM by mastanalun123. Edited 2 times in total. Edited 2 times in total.)
राजन ने हिम्मत करके कहा कि अपनी गर्लफ्रेंड का हाथ अपने हाथ मे ले रहा हूँ,आरती ने कहा कि ऐसे मत करो,मनु देख लेगा राजन ने कहा कि वो नही देखे गा वो तो प्रिया के साथ बिजी है,और जब वो दोनो बाय्फ्रेंड गर्लफ्रेंड हैं तो हाथ तो हाथ मे रख ही सकते हैं,ये सुन कर आरती ने अपने आप को ढीला छोड़ दिया,राजन ने सोच चलो आज एक और टारगेट अचिव हो गया,मनु के बाद अब आरती भी कुछ-2 चेंज हो रही है.
उस दिन के वाक़ये से मनु और प्रिया मे अंडरस्टॅंडिंग बढ़ ही गयी,और राजन भी आरती के करीब आ रहा था,अब मनु बहुत खुस था और वो राजन का बहुत अहसानमंद था,ये बात अगले दिन जब राजन ट्यूशन के लिए उसके घर आया तो उसने राजन को कही,रमण ने कहा कि दोस्ती मे ऐसा कुछ नही होता वो तो उसके लिए जो भी कर सकता है किया.
मनु ने कहा कि भैया पेर आप ने मुझे जो मौका दिया वो फिर कब मिलेगा,राजन ने कहा कि मेरे भाई ज़्यादा जल्दी मत करो,जो तुम कहते हो वो भी मिल जाएगा,बस थोड़ा सा तसल्ली करो,ज़्यादा जल्दी मे काम खराब ही होता है.
फिर वो पढ़ाई मे लग गये,इतने मे आरती कमरे मे आई,आज आरती घर के कॅषुयल कपड़ों मे ही थी,कल के वाक़ए के बाद वो राजन को कोई मौका नही देना कहती थी,इसलिए उसने नाश्ता रखा और चली गयी,पर राजन जब तक वो आँखों से ओझल नही हो गयी राजन आरती को ही देखता रहा.
राजन ने मनु से पूछा कि क्या उसकी मम्मी कुछ नाराज़ है क्या जो बिना कुछ बोले ही चली गयी,मनु ने कहा कि ऐसी तो कोई बात नही है,मम्मी तो मूवी से आने के बाद बहुत ही खुस थी,तो राजन ने कहा फिर आज क्या हुआ,मनु ने कहा कि मैं बाद मे मम्मी से पूछूँगा.
इसके बाद लाइफ रूटिन से चल रही थी,अब आरती राजन के आइ कॉंटॅक्ट से बचने की कोशिस करती थी.पर राजन अपना सारे का सारा कनसेन्रेशन आरती पर ही रखे हुए था,इसलिए वो कोशिस करता था कि कैसे आरती की कंपनी ज़्यादा से ज़्यादा एंजाय की जाए,पर अरविंद के डर की वजह से ज़्यादा कुछ नही कर सकता था.
इस बीच मनु का जनमदिन नज़दीक आ गया ,मनु ने राजन को उसका वादा याद दिलाया,राजनने कहा कि तुम चिंता मत करो मुझे अपना वादा अच्छी तरह से याद है,तुम तो पार्टी की तैयारी करो,फिर क्या था वैसे भी ये मनु का 18अर्रहवाँ जनमदिन था इसलिए उसके पापा ने पार्टी तो देनी ही थी
उस दिन के वाक़ये से मनु और प्रिया मे अंडरस्टॅंडिंग बढ़ ही गयी,और राजन भी आरती के करीब आ रहा था,अब मनु बहुत खुस था और वो राजन का बहुत अहसानमंद था,ये बात अगले दिन जब राजन ट्यूशन के लिए उसके घर आया तो उसने राजन को कही,रमण ने कहा कि दोस्ती मे ऐसा कुछ नही होता वो तो उसके लिए जो भी कर सकता है किया.
मनु ने कहा कि भैया पेर आप ने मुझे जो मौका दिया वो फिर कब मिलेगा,राजन ने कहा कि मेरे भाई ज़्यादा जल्दी मत करो,जो तुम कहते हो वो भी मिल जाएगा,बस थोड़ा सा तसल्ली करो,ज़्यादा जल्दी मे काम खराब ही होता है.
फिर वो पढ़ाई मे लग गये,इतने मे आरती कमरे मे आई,आज आरती घर के कॅषुयल कपड़ों मे ही थी,कल के वाक़ए के बाद वो राजन को कोई मौका नही देना कहती थी,इसलिए उसने नाश्ता रखा और चली गयी,पर राजन जब तक वो आँखों से ओझल नही हो गयी राजन आरती को ही देखता रहा.
राजन ने मनु से पूछा कि क्या उसकी मम्मी कुछ नाराज़ है क्या जो बिना कुछ बोले ही चली गयी,मनु ने कहा कि ऐसी तो कोई बात नही है,मम्मी तो मूवी से आने के बाद बहुत ही खुस थी,तो राजन ने कहा फिर आज क्या हुआ,मनु ने कहा कि मैं बाद मे मम्मी से पूछूँगा.
इसके बाद लाइफ रूटिन से चल रही थी,अब आरती राजन के आइ कॉंटॅक्ट से बचने की कोशिस करती थी.पर राजन अपना सारे का सारा कनसेन्रेशन आरती पर ही रखे हुए था,इसलिए वो कोशिस करता था कि कैसे आरती की कंपनी ज़्यादा से ज़्यादा एंजाय की जाए,पर अरविंद के डर की वजह से ज़्यादा कुछ नही कर सकता था.
इस बीच मनु का जनमदिन नज़दीक आ गया ,मनु ने राजन को उसका वादा याद दिलाया,राजनने कहा कि तुम चिंता मत करो मुझे अपना वादा अच्छी तरह से याद है,तुम तो पार्टी की तैयारी करो,फिर क्या था वैसे भी ये मनु का 18अर्रहवाँ जनमदिन था इसलिए उसके पापा ने पार्टी तो देनी ही थी