15-03-2024, 03:48 PM
उनके जाने के बाद अब मेरे पास मेरी भांजी साजिया को चोदने के अलावा और कोई रास्ता नहीं बचा था. मैं साजिया के बाजू में आकर लेट गया और लंड सहलाने लगा. मैं अभी आँख बंद करके सोच ही रहा था कि साजिया से कैसे शुरुआत करूँ.. तभी मुझे मेरे हाथ पर जो मेरे लंड पर लगा था, नर्म हाथ का अहसास हुआ. “
मैंने देखा तो साजिया उठ गई थी और मेरे लंड पर उसका हाथ था. मैंने उसकी तरफ देखा तो बोली- क्या हुआ डियर मामा.. लंड की आग बुझी नहीं क्या? मैं उसकी बात का जबाव देता, तभी वो उठ कर बैठ गई और उनसे मेरा हाथ लंड से हटाते हुए लंड को अपनी हाथ से सहला दिया. आह.. लंड ने एकदम से तुनकी मारी और साजिया ने मेरा लंड मुँह में ले लिया.
मैंने देखा तो साजिया उठ गई थी और मेरे लंड पर उसका हाथ था. मैंने उसकी तरफ देखा तो बोली- क्या हुआ डियर मामा.. लंड की आग बुझी नहीं क्या? मैं उसकी बात का जबाव देता, तभी वो उठ कर बैठ गई और उनसे मेरा हाथ लंड से हटाते हुए लंड को अपनी हाथ से सहला दिया. आह.. लंड ने एकदम से तुनकी मारी और साजिया ने मेरा लंड मुँह में ले लिया.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
