22-02-2024, 11:15 AM
अब मेरा पूरा लंड मां की चूत में चला गया.
मां आह आह करके सिसक पड़ीं.
मैंने मां से कहा- पूरा गया?
लेकिन मां ने कुछ नहीं कहा.
मैंने मां को धक्के देते हुए चुत चोदने लगा.
इस समय मुझे मां का मुलायम नर्म पेट अपने पेट पर टच होते हुए महसूस हो रहा था.
मैंने उनकी मैक्सी पेट से ऊपर उठा दी. अब मां का और मेरा पेट आपस में टच होने लगा.
मुझे मां की चूत के बाल भी महसूस हो रहे थे. इससे मैं और उत्तेजित हो गया और मां को झटके मारकर चोदने लगा.
दस मिनट में ही मेरी मां की चूत से पानी निकलने लगा. जिसकी वजह से हॉल में हमारी चुदाई की ‘पच पच …’ की आवाज आने लगी थी.
मैं चोदना रोक कर मां के ऊपर लेट गया और उनको किस करने की कोशिश करने लगा.
लेकिन मां ने अपना मुँह फिरा लिया.
मैं उनके गालों को चूसने और चाटने लगा.
मां ने अपने दोनों हाथ मेरी पीठ पर रख कर मुझे जकड़ लिया.
उन्होंने अपने दोनों पैरों को अड़ा कर मेरे चुदाई के काम में रोक लगा दी.
मां आह आह करके सिसक पड़ीं.
मैंने मां से कहा- पूरा गया?
लेकिन मां ने कुछ नहीं कहा.
मैंने मां को धक्के देते हुए चुत चोदने लगा.
इस समय मुझे मां का मुलायम नर्म पेट अपने पेट पर टच होते हुए महसूस हो रहा था.
मैंने उनकी मैक्सी पेट से ऊपर उठा दी. अब मां का और मेरा पेट आपस में टच होने लगा.
मुझे मां की चूत के बाल भी महसूस हो रहे थे. इससे मैं और उत्तेजित हो गया और मां को झटके मारकर चोदने लगा.
दस मिनट में ही मेरी मां की चूत से पानी निकलने लगा. जिसकी वजह से हॉल में हमारी चुदाई की ‘पच पच …’ की आवाज आने लगी थी.
मैं चोदना रोक कर मां के ऊपर लेट गया और उनको किस करने की कोशिश करने लगा.
लेकिन मां ने अपना मुँह फिरा लिया.
मैं उनके गालों को चूसने और चाटने लगा.
मां ने अपने दोनों हाथ मेरी पीठ पर रख कर मुझे जकड़ लिया.
उन्होंने अपने दोनों पैरों को अड़ा कर मेरे चुदाई के काम में रोक लगा दी.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.