14-01-2024, 01:37 PM
पड़ोसियों के साथ एक नौजवान के कारनामे
182
VOLUME II
विवाह
CHAPTER-4
PART 2
बेकरार दिल का प्रेमालाप
अगले दिन सुबह बारात कामरूप के लिए हवाई मार्ग निकल गयी और रास्ते में मेरी फूफेरी बहनो जेन, अलका सहित लड़किया जो शादी में आयी थी मुझे घेर लिया और मुझसे पूछने लगी की हमे अपनी दुल्हन के बारे में सब कुछ बताओ।
मैंने उन्हें बताया को राजकुमारी ज्योत्स्ना कामरूप के महाराज उमानाथ उनकी पत्नी महारानी चित्रां देवी की पुत्री है और उनका एक भाई हैं राजकुमार महीपनाथ।
राजकुमारी 18 साल की है और कॉलेज में उच्च अंक प्राप्त करके उसने इस साल माध्यमिक हाई कॉलेज पास किया है। उसका रंग गोरा और उसके गहरे भूरे, कंधे की लंबाई के बाल हैं और उसकी सुंदर मैत्रीपूर्ण भूरी आँखों के साथ वह लगभग 5 ' 6" लंबी है। बाकी आप सब आज उन्हें खुद ही मिल लेना।
कामरूप (आसाम) में बारात का स्वागत परम्परागत ढंग से किया गया और सब लड़कियों ने ज्योत्स्ना से मिलने की जिद्द की और फिर महाराज ने ज्योत्स्ना को अपनी सखी अनुपमा के साथ मिलने की व्यवस्था कर दी और मैंने जेन को इशारा किया और वह भी मुझे साथ में ले गयी ताकि हम भी मिल ले।
जब ज्योत्स्ना आयी तो वह बहुत शिष्ट और मर्यादित मणि के जैसी अनुपम सौंदर्य कि स्वामिनी सम्पूर्ण प्रकृति सौंदर्य का साकार लग रही थी और उसकी देह यष्टि से प्रवाहित दिव्य गंध से आकर्षित सब उसे अपलक देखते रहे। राजकुमारी ज्योत्सना आकर्षक सुन्दरतम वस्त्र, अलंकार और पुष्प धारण किये हुए, सौंदर्य प्रसाधनों से युक्त-सुसज्जित दर और बेहद आकर्षक लग रही थी। राजकुमारी ज्योत्सना बहुत सुन्दर लग रही थी उसका सुन्दर अण्डाकार गुलाबी रंग का चेहरा, मन-मोहिनी, मुख पर जो आभूषण धारण किए हुए कमसिन कन्या, जिसकी कमर और नितम्बों का आकार सुराई की भांति थी। जिसकी कमल नयन हिरणी के जैसी चंचल आखें सम्मोहन युक्त, खंजर के समान और जिसकी तरफ वह एक नजर देख लें वह उसके मोहपाश में बन्ध जाए। गुलाबी वस्त्रों को धारण करने साक्षात अप्सरा लग रही राजकुमारी ज्योत्सना को मैं देखता ही रह गया?
उसका कद, 5'6' वजन लगभग 50-52 Kg उसके कद के हिसाब से सटीक लग रहा था, वसा के कोई लक्षण नहीं थे, उसका चेहरा गोल सुंदर और प्यारा था। उसने सम्मानपूर्वक अपना सिर थोड़ा झुका लिया था फिर उसने थोड़ी देर मेरी ओर देखा और थोड़ा-सा मुस्कुराई, फिर उसने शर्म से अपने चेहरा हाथ से ढँक लिया और शरमाते हुए मुझसे कहा, "सुप्रभात।"
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मेरी नजरे उस पर जमी हुई थी और उसका गोरा रंग लम्बी पतली सुन्दर मांसल शारीर, उन्नत एवं सुडौल वक्ष: स्थल, घने और लंबे बाल, सजीव एवं माधुर्य पूर्ण आँखों का जादू मन को मुग्ध कर देने वाली मुस्कान दिल को गुदगुदा देने वाला अंदाज यौवन भर से लदी हुई ज्योत्सना की इस अदा ने मेरे मन को विचिलित कर दिया। उसका फिगर 34D 28 34 होगा, उसकी कमसिन काया गोल-गोल भरे बूब्स, गोरा रंग, उसकी नाज़ुक-सी पतली कमर उस पर उभरे गुंदाज़ कूल्हे और भरी गांड देखकर मेरा मन और लंड दोनों मचलने लगे।
मेरा मन राजकुमारी ज्योत्स्ना को देख बेकाबू हो रहा था। उनकी गोल-गोल बूब्स से भरी उसकी छाती और भरे-भरे गालों के साथ उसकी नशीली आंखें मुझे नशे में कर रही थी। उसके होठों की बनावट तो ऐसी थी, अगर कोई एक बार उनका रस चूसना शुरू करे तो रूकने का नाम ही न ले। सपाट पेट, लहराती हुई कमर, गहरी नाभि और बूब्स पर तनी हुई निपल्स, आँखे अधमुंदी चेहरा अब मेरा मन तो कर रहा था कि बस उसके रस भरे ओंठो और स्तनों को-को चूमता और चूसता और चूमता, चाटता रहूँ और अपनी बाहों में जकड़ कर मसल डालूँ और जिंदगी भर ऐसे ही पड़ा रहूँ और उफ क्या-क्या नहीं करूँ?
मैं तो उसे देखता ही रहा और उसकी सुप्रभात का जवाब देना ही भूल गया ज्योस्ना ने गुलाबी रंग की साडी पहनी हुई थी। साडी की व्याख्या मेरी फूफेरी बहन ने कुछ इस तरह से एक बार की थी।
साड़ी 5-6 गज के कपडे की सामग्री का एक सतत टुकड़ा है जिसे मुख्यता बहरतीये लड़किया या महिलाये पहनती है। साडी प्रमुख तौर पर कमर के नीचे पहनी जाती है और आम तौर पर ऊपरी भाग में एक ब्लाउज या चोली के साथ पहनी जाती है और साडी के नीचे, पेटीकोट नामक एक स्कर्ट पहनी जाती है जो कमर से टखने तक लंबी होती है, पेटीकोट डोरियों के साथ कमर पर बंधी होती है। लंबी चोली कमर तक फैली होती है और छोटी चोली बस्ट के ठीक नीचे समाप्त हो जाती है। साड़ी को दाहिने कूल्हे पर पेटीकोट पर सादे सिरे में अटका कर पहना जाता है और कई प्लेट्स बनाई और फोल्ड की जाती हैं। इन प्लेट्स को केंद्र के रूप में नाभि का उपयोग करते हुए पेटीकोट में अटका कर बाँधा जाता है, कपड़े को फिर से कमर के चारों ओर लपेटा जाता है और फिर कपड़े के सिरे को-को बाएँ कंधे पर ले जा कर लपेटा जाता है। यह लिपटी हुई साडी का बाकी हिस्सा पल्लू बन जाता है। जो पालू बच जाए वह दाहिने बगल के नीचे या कंधे के ऊपर या पीठ के चारों ओर लपेटा जा सकता है, इसे बाएँ कंधे के ऊपर या सिर को ढंकने के लिए भी इस्तेमाल किया जाता है।
फिर जेन ने मुझे होश में लाने के लिए कोहनी मारी और मैं होश में आया तो सब लड़किया हस पड़ी मुझे ऐसा लगा जैसे एक सफेद-गर्म भाले ने हम दोनों को एक ही समय में, हमारे दिल को घायल कर दिया हो। मैंने हांफते हुए कहा "ओह!" और मैंने भी ज्योत्स्ना को सुप्रभात कहा मुझे पता है कि उसने भी किया क्योंकि मैंने इसे सुना था और शायद जेन ने भी इसे सुना था और शायद मेरे पास कड़ी अलका या रीता ने भी सुना होगा?
जैसे ही वह धीरे-धीरे सामने आई और जैसे ही मैं उसे प्रणाम करने के लिए झुका, हमारी आंखें मिलीं: और मैं वर्णन नहीं कर सकता ये शब्दों से परे है, लेकिन मैं सीधे सबसे मासूम सुंदर रूप और कामुक रूप से आकर्षक उसकी बड़ी काली आंखों में देख रहा था।
और फिर जेन और अलका बोली हमे आपसे मिलकर खुशी हुई. " अलका ने उसकी ओर कदम बढ़ाया, उसका हाथ पकड़कर, उसे हॉल में ले आयी और सब से परिचय करवाया।
जारी रहेगी
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VOLUME II
विवाह
CHAPTER-4
PART 2
बेकरार दिल का प्रेमालाप
अगले दिन सुबह बारात कामरूप के लिए हवाई मार्ग निकल गयी और रास्ते में मेरी फूफेरी बहनो जेन, अलका सहित लड़किया जो शादी में आयी थी मुझे घेर लिया और मुझसे पूछने लगी की हमे अपनी दुल्हन के बारे में सब कुछ बताओ।
मैंने उन्हें बताया को राजकुमारी ज्योत्स्ना कामरूप के महाराज उमानाथ उनकी पत्नी महारानी चित्रां देवी की पुत्री है और उनका एक भाई हैं राजकुमार महीपनाथ।
राजकुमारी 18 साल की है और कॉलेज में उच्च अंक प्राप्त करके उसने इस साल माध्यमिक हाई कॉलेज पास किया है। उसका रंग गोरा और उसके गहरे भूरे, कंधे की लंबाई के बाल हैं और उसकी सुंदर मैत्रीपूर्ण भूरी आँखों के साथ वह लगभग 5 ' 6" लंबी है। बाकी आप सब आज उन्हें खुद ही मिल लेना।
कामरूप (आसाम) में बारात का स्वागत परम्परागत ढंग से किया गया और सब लड़कियों ने ज्योत्स्ना से मिलने की जिद्द की और फिर महाराज ने ज्योत्स्ना को अपनी सखी अनुपमा के साथ मिलने की व्यवस्था कर दी और मैंने जेन को इशारा किया और वह भी मुझे साथ में ले गयी ताकि हम भी मिल ले।
जब ज्योत्स्ना आयी तो वह बहुत शिष्ट और मर्यादित मणि के जैसी अनुपम सौंदर्य कि स्वामिनी सम्पूर्ण प्रकृति सौंदर्य का साकार लग रही थी और उसकी देह यष्टि से प्रवाहित दिव्य गंध से आकर्षित सब उसे अपलक देखते रहे। राजकुमारी ज्योत्सना आकर्षक सुन्दरतम वस्त्र, अलंकार और पुष्प धारण किये हुए, सौंदर्य प्रसाधनों से युक्त-सुसज्जित दर और बेहद आकर्षक लग रही थी। राजकुमारी ज्योत्सना बहुत सुन्दर लग रही थी उसका सुन्दर अण्डाकार गुलाबी रंग का चेहरा, मन-मोहिनी, मुख पर जो आभूषण धारण किए हुए कमसिन कन्या, जिसकी कमर और नितम्बों का आकार सुराई की भांति थी। जिसकी कमल नयन हिरणी के जैसी चंचल आखें सम्मोहन युक्त, खंजर के समान और जिसकी तरफ वह एक नजर देख लें वह उसके मोहपाश में बन्ध जाए। गुलाबी वस्त्रों को धारण करने साक्षात अप्सरा लग रही राजकुमारी ज्योत्सना को मैं देखता ही रह गया?
उसका कद, 5'6' वजन लगभग 50-52 Kg उसके कद के हिसाब से सटीक लग रहा था, वसा के कोई लक्षण नहीं थे, उसका चेहरा गोल सुंदर और प्यारा था। उसने सम्मानपूर्वक अपना सिर थोड़ा झुका लिया था फिर उसने थोड़ी देर मेरी ओर देखा और थोड़ा-सा मुस्कुराई, फिर उसने शर्म से अपने चेहरा हाथ से ढँक लिया और शरमाते हुए मुझसे कहा, "सुप्रभात।"
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मेरी नजरे उस पर जमी हुई थी और उसका गोरा रंग लम्बी पतली सुन्दर मांसल शारीर, उन्नत एवं सुडौल वक्ष: स्थल, घने और लंबे बाल, सजीव एवं माधुर्य पूर्ण आँखों का जादू मन को मुग्ध कर देने वाली मुस्कान दिल को गुदगुदा देने वाला अंदाज यौवन भर से लदी हुई ज्योत्सना की इस अदा ने मेरे मन को विचिलित कर दिया। उसका फिगर 34D 28 34 होगा, उसकी कमसिन काया गोल-गोल भरे बूब्स, गोरा रंग, उसकी नाज़ुक-सी पतली कमर उस पर उभरे गुंदाज़ कूल्हे और भरी गांड देखकर मेरा मन और लंड दोनों मचलने लगे।
मेरा मन राजकुमारी ज्योत्स्ना को देख बेकाबू हो रहा था। उनकी गोल-गोल बूब्स से भरी उसकी छाती और भरे-भरे गालों के साथ उसकी नशीली आंखें मुझे नशे में कर रही थी। उसके होठों की बनावट तो ऐसी थी, अगर कोई एक बार उनका रस चूसना शुरू करे तो रूकने का नाम ही न ले। सपाट पेट, लहराती हुई कमर, गहरी नाभि और बूब्स पर तनी हुई निपल्स, आँखे अधमुंदी चेहरा अब मेरा मन तो कर रहा था कि बस उसके रस भरे ओंठो और स्तनों को-को चूमता और चूसता और चूमता, चाटता रहूँ और अपनी बाहों में जकड़ कर मसल डालूँ और जिंदगी भर ऐसे ही पड़ा रहूँ और उफ क्या-क्या नहीं करूँ?
मैं तो उसे देखता ही रहा और उसकी सुप्रभात का जवाब देना ही भूल गया ज्योस्ना ने गुलाबी रंग की साडी पहनी हुई थी। साडी की व्याख्या मेरी फूफेरी बहन ने कुछ इस तरह से एक बार की थी।
साड़ी 5-6 गज के कपडे की सामग्री का एक सतत टुकड़ा है जिसे मुख्यता बहरतीये लड़किया या महिलाये पहनती है। साडी प्रमुख तौर पर कमर के नीचे पहनी जाती है और आम तौर पर ऊपरी भाग में एक ब्लाउज या चोली के साथ पहनी जाती है और साडी के नीचे, पेटीकोट नामक एक स्कर्ट पहनी जाती है जो कमर से टखने तक लंबी होती है, पेटीकोट डोरियों के साथ कमर पर बंधी होती है। लंबी चोली कमर तक फैली होती है और छोटी चोली बस्ट के ठीक नीचे समाप्त हो जाती है। साड़ी को दाहिने कूल्हे पर पेटीकोट पर सादे सिरे में अटका कर पहना जाता है और कई प्लेट्स बनाई और फोल्ड की जाती हैं। इन प्लेट्स को केंद्र के रूप में नाभि का उपयोग करते हुए पेटीकोट में अटका कर बाँधा जाता है, कपड़े को फिर से कमर के चारों ओर लपेटा जाता है और फिर कपड़े के सिरे को-को बाएँ कंधे पर ले जा कर लपेटा जाता है। यह लिपटी हुई साडी का बाकी हिस्सा पल्लू बन जाता है। जो पालू बच जाए वह दाहिने बगल के नीचे या कंधे के ऊपर या पीठ के चारों ओर लपेटा जा सकता है, इसे बाएँ कंधे के ऊपर या सिर को ढंकने के लिए भी इस्तेमाल किया जाता है।
फिर जेन ने मुझे होश में लाने के लिए कोहनी मारी और मैं होश में आया तो सब लड़किया हस पड़ी मुझे ऐसा लगा जैसे एक सफेद-गर्म भाले ने हम दोनों को एक ही समय में, हमारे दिल को घायल कर दिया हो। मैंने हांफते हुए कहा "ओह!" और मैंने भी ज्योत्स्ना को सुप्रभात कहा मुझे पता है कि उसने भी किया क्योंकि मैंने इसे सुना था और शायद जेन ने भी इसे सुना था और शायद मेरे पास कड़ी अलका या रीता ने भी सुना होगा?
जैसे ही वह धीरे-धीरे सामने आई और जैसे ही मैं उसे प्रणाम करने के लिए झुका, हमारी आंखें मिलीं: और मैं वर्णन नहीं कर सकता ये शब्दों से परे है, लेकिन मैं सीधे सबसे मासूम सुंदर रूप और कामुक रूप से आकर्षक उसकी बड़ी काली आंखों में देख रहा था।
और फिर जेन और अलका बोली हमे आपसे मिलकर खुशी हुई. " अलका ने उसकी ओर कदम बढ़ाया, उसका हाथ पकड़कर, उसे हॉल में ले आयी और सब से परिचय करवाया।
जारी रहेगी