24-11-2023, 10:58 PM
एक्सपर्ट की सलाह
अब प्राबलम कुछ कुछ समझ में आ रही थी ,लेकिन करूँ क्या , कुछ समझ में नहीं आ रहा था।
और मम्मी भी उन नए लौंडों को , यंग एंटरप्रेन्योर्स ,... तभी फोन बजा , मम्मी का मेसेज बहुत शार्ट
एनीथिंग अर्जेन्ट
यस , मैंने तुरंत जवाब भेजा।
लेकिन लगता है उनका लेक्चर चालू था पर सेक्रेटरी ने किसी तरह मेसेज भेज दिया था।
दस मिनट बाद उनका फोन आया , टॉयलेट ब्रेक के नाम पे वो पैनल से निकल के आई थीं। मैंने उन्हें सब हालत बताई।
वो फिर गायब लेकिन पन्दरह मिनट बाद वो व्हाट्सऐप पे आयीं और चार क्लियर इंस्ट्रक्शन उन्होंने दिए।
इसका मतलब अब सिचुएशन उन्होंने टेकओवर कर ली थी लेकिन टैक्टिकल डिसीजन और एक्जीक्यूशन तो हमें ही करना था , फील्ड में।
पहला इंस्ट्रक्शन - उन्हें बोलो की गुड्डी के घर जाएँ और अगले दो तीन घंटे तक उसके घर पे ही रहें।
दूसरा मेरे लिए था , मैं थोड़ी देर में नीचे जाऊं ,जेठानी जी के जगने के पहले ,और उनके साथ , नथिंग कान्फ्लिक्टिंग ,बस उन्हें अपने साथ रखूं और थोड़ा मक्खन।
तीसरा मेरी सहेली आकाश कोचिंग वाली के लिए ,एक मेल बल्कि दो मेल।
और चौथा सिचुएशन दुबारा क्रिटिकल हो , तो हम अपना प्रोग्राम प्री पोन कर लें बजाय चार दिन बाद जाने के जल्दी चल दें ,गुड्डी के साथ। इसके लिए मैं मिसेज खन्ना को बोल के आफिस से एक मेल इनके लिए छुट्टी कैंसल ,कम बैक नाऊ। लेकिन ये बात किसी को भी मालूम न पड़े कल से पहले।
हाँ सबसे कठिन फ्रंट सासु जी को वो टैकिल कर लेंगी। अभी उनकी कोई बजट की मीटिंग थी और फिर एक्सपोर्ट प्रमोशन काउन्सिल से ,आठ बजे हम फिर मिलेंगे वीडियो चैट पर।
अब चीजें कुछ कंट्रोल में आयी।
और फिर बस दस मिनट मैंने रिलैक्स किया , शार्ट नैप। और नीचे।
…..
बीस मिनट बाद मैं सीढ़ियों से धड़ धड़ नीचे।
हाँ लेकिन इस बीस मिनट में सब कुछ बदल गया था ,न मेरी सिर्फ धजा बल्कि एट्टीट्यूड भी।
शादी के शुरू के दिनों की तरह साडी , पैशन रेड , घूंघट तो नहीं लेकिन सर ढका
और सबसे बढ़कर एक बदला हुआ ऎटिट्यूड , जिसे सिखाने की कोशिश जेठानी जी पहले दिन से कर रही थीं ,
सबमिसिव ,स्माइलिंग , नजर नीची।
यह मान के चलना की मुझे कुछ नहीं आता और मैं सीखने के लिए तैयार हूँ।और साथ में मक्ख़न ५०० ग्राम वो भी बहुत सफाई से ,
साढ़े चार बजने वाले थे , यानी मेरी जेठानी का टी टाइम।
ज्यादा दूध की उनकी पसंद की चाय बना के , और फ्रेश कूकीज के साथ ,
जब मैं उनके कमरे में पहुंची तो वो बस आँखे खोल रही थीं।
टी टाइम मैंने अनाउंस किया ,और आँखे खोल दी मेरी जेठानी ने।
चाय के साथ उनकी फेवरिट सीरियल्स , घर की पंचायत , और फिर नाश्ते का टाइम ,
" दी आप ने लास्ट टाइम जो मूंग का हलवा बनाना सिखाया था न ,मैं सोचती हूँ आज ट्राई करती हूँ लेकिन प्लीज आप साथ रहिएगा , कुछ कम ज्यादा हो तो ,... और साथ में,... "
अब प्राबलम कुछ कुछ समझ में आ रही थी ,लेकिन करूँ क्या , कुछ समझ में नहीं आ रहा था।
और मम्मी भी उन नए लौंडों को , यंग एंटरप्रेन्योर्स ,... तभी फोन बजा , मम्मी का मेसेज बहुत शार्ट
एनीथिंग अर्जेन्ट
यस , मैंने तुरंत जवाब भेजा।
लेकिन लगता है उनका लेक्चर चालू था पर सेक्रेटरी ने किसी तरह मेसेज भेज दिया था।
दस मिनट बाद उनका फोन आया , टॉयलेट ब्रेक के नाम पे वो पैनल से निकल के आई थीं। मैंने उन्हें सब हालत बताई।
वो फिर गायब लेकिन पन्दरह मिनट बाद वो व्हाट्सऐप पे आयीं और चार क्लियर इंस्ट्रक्शन उन्होंने दिए।
इसका मतलब अब सिचुएशन उन्होंने टेकओवर कर ली थी लेकिन टैक्टिकल डिसीजन और एक्जीक्यूशन तो हमें ही करना था , फील्ड में।
पहला इंस्ट्रक्शन - उन्हें बोलो की गुड्डी के घर जाएँ और अगले दो तीन घंटे तक उसके घर पे ही रहें।
दूसरा मेरे लिए था , मैं थोड़ी देर में नीचे जाऊं ,जेठानी जी के जगने के पहले ,और उनके साथ , नथिंग कान्फ्लिक्टिंग ,बस उन्हें अपने साथ रखूं और थोड़ा मक्खन।
तीसरा मेरी सहेली आकाश कोचिंग वाली के लिए ,एक मेल बल्कि दो मेल।
और चौथा सिचुएशन दुबारा क्रिटिकल हो , तो हम अपना प्रोग्राम प्री पोन कर लें बजाय चार दिन बाद जाने के जल्दी चल दें ,गुड्डी के साथ। इसके लिए मैं मिसेज खन्ना को बोल के आफिस से एक मेल इनके लिए छुट्टी कैंसल ,कम बैक नाऊ। लेकिन ये बात किसी को भी मालूम न पड़े कल से पहले।
हाँ सबसे कठिन फ्रंट सासु जी को वो टैकिल कर लेंगी। अभी उनकी कोई बजट की मीटिंग थी और फिर एक्सपोर्ट प्रमोशन काउन्सिल से ,आठ बजे हम फिर मिलेंगे वीडियो चैट पर।
अब चीजें कुछ कंट्रोल में आयी।
और फिर बस दस मिनट मैंने रिलैक्स किया , शार्ट नैप। और नीचे।
…..
बीस मिनट बाद मैं सीढ़ियों से धड़ धड़ नीचे।
हाँ लेकिन इस बीस मिनट में सब कुछ बदल गया था ,न मेरी सिर्फ धजा बल्कि एट्टीट्यूड भी।
शादी के शुरू के दिनों की तरह साडी , पैशन रेड , घूंघट तो नहीं लेकिन सर ढका
और सबसे बढ़कर एक बदला हुआ ऎटिट्यूड , जिसे सिखाने की कोशिश जेठानी जी पहले दिन से कर रही थीं ,
सबमिसिव ,स्माइलिंग , नजर नीची।
यह मान के चलना की मुझे कुछ नहीं आता और मैं सीखने के लिए तैयार हूँ।और साथ में मक्ख़न ५०० ग्राम वो भी बहुत सफाई से ,
साढ़े चार बजने वाले थे , यानी मेरी जेठानी का टी टाइम।
ज्यादा दूध की उनकी पसंद की चाय बना के , और फ्रेश कूकीज के साथ ,
जब मैं उनके कमरे में पहुंची तो वो बस आँखे खोल रही थीं।
टी टाइम मैंने अनाउंस किया ,और आँखे खोल दी मेरी जेठानी ने।
चाय के साथ उनकी फेवरिट सीरियल्स , घर की पंचायत , और फिर नाश्ते का टाइम ,
" दी आप ने लास्ट टाइम जो मूंग का हलवा बनाना सिखाया था न ,मैं सोचती हूँ आज ट्राई करती हूँ लेकिन प्लीज आप साथ रहिएगा , कुछ कम ज्यादा हो तो ,... और साथ में,... "