08-05-2023, 04:18 PM
अगले कुछ दिन राजीव ने पूरा दिन सगाई की प्लानिंग में लगाया। वह चाहता था कि पूरा फ़ंक्शन बढ़िया से हो। सरला से वह sms के द्वारा बात करते रहता था। तभी श्याम का एक दिन फ़ोन आया कि वह राजीव के शहर आ रहा है ताकि सारी बातें सगाई की अच्छी तरह से हो जाएँ। सरला नहीं आ रही है ये जान कर वह काफ़ी निराश हुआ।
अगले दिन श्याम आया और दिन भर दोनों सगाई की तय्यारीयों का जायज़ा लिया और फिर दोपहर को खाना एक रेस्तराँ में खाया। राजीव ने बीयर ऑर्डर की तो श्याम बोला किमैं तो जिन पियूँगा। राजीव बीयर और श्याम जिन पीने लगा। जल्दी ही श्याम को चढ़ गयी।
राजीव ने सोचा कि इससे नशे की हालत में सरला की कुछ बातें की जाएँ।
राजीव: श्याम भाई ये तो बताओ कि सरला इस उम्र में भी इतनी सुंदर कैसे है?
श्याम थोड़े से सरूर में आकर: पता नहीं यार, मगर भगवान उसपर कुछ ज़्यादा ही मेहरबान हैं। देखो ना इस उम्र में भी क्या क़यामत लगती है।
राजीव: वही तो देखा जाए तो इस उम्र में औरतें मोटी और बेडौल हो जाती हैं, पर वह तो अभी भी मस्त फ़िगर मेंटेंन की है।
श्याम: हाँ भाई सच है अभी भी मस्ती से भरी हुई लगती है।
राजीव: एक बात पूँछुँ बुरा तो नहीं मानोगे?
श्याम नशे में : पूछो यार अब तो हम दोस्त हो गए।
राजीव: वो विधवा है और तुम दोनों एक ही घर में रहते हो। तुम्हारा ईमान नहीं डोलता ?
वह जान बूझकर पूछा हालाँकि उसको तो पता था कि वो सरला की चुदाई करता रहता है।
श्याम झूमते हुए : अब यार तुमसे क्या छपाऊँ, सच तो ये है जब मेरा भाई इसको ब्याह के लाया था तभी से मैं उसका दीवाना हो गया था।
राजीव: ओह तो क्या तुम उसकी इसके पति के जीते जी ही पटा चुके थे।
श्याम: हाँ यार , मेरी बीवी बीमार रहती थी और जवानी का मज़ा नहीं देती थी। और मेरा छोटा भाई भी इसे ज़्यादा सुख नहीं दे पाता था। सो ये मुझसे जल्दी ही आसानी से पट गयी। सच तो ये है कि मालिनी मेरी ही बेटी है।
राजीव उसका मुँह देखता रह गया।
राजीव: ओह ये बात है। तो क्या अभी भी तुम उसको चो- मतलब करते हो?
श्याम: हाँ यार पर सबसे छुपाकर। मगर मुझे शक है कि घर में सबको पता है और सब चुप रहते हैं। पर हम अभी भी खूल्लम ख़ूल्ला कभी नहीं करते।
राजीव: यार तुम तो बहुत लकी हो ।
श्याम: लगता है कि तुमको भी पसंद है वो। है ना? मैंने तुमको उसे कई बार घूरते देखा है।
राजीव: हाँ यार सच में बोम्ब है वो, मेरी नींद ही उड़ा दी है उसने।
श्याम: तुम चाहो तो उसे पटा सकते हो?
राजीव: वो कैसे?
श्याम: देखो अभी हमें पैसों की बहुत ज़रूरत है अगर तुम इस समय उसकी मदद कर दोगे तो वह तुम्हारे सामने समर्पण कर देगी।
राजीव: ओह ऐसा क्या?
श्याम: वो इस समय ज़ेवरों को लेकर बहुत चिंतित है। तुम इसमे उसकी मदद कर सकते हो।
राजीव: अरे ये तो बहुत ही सिम्पल सी बात है। मैं अपनी बीवी के ज़ेवर पोलिश करवा के उसे दे दूँगा और वो उसे मेरी बहु को दे देगी। इस तरह घर का माल घर में वापस आ जाएगा। और सबकी इज़्ज़त भी रह जाएगी।
श्याम: वाह क्या सुझाव है। वो तो तुम्हारे अहसान तले दब ही जाएगी। तुम उससे मज़े कर लेना।
राजीव: तुमको बुरा तो नहीं लगेगा।
श्याम: यार इसमें बुरा लगने की क्या बात है? यार औरत होती है चुदाई के लिए। तुमसे भी चूद जाएगी तो क्या उसकी बुर घिस जाएगी?
राजीव: आऽऽह यार तुमने तो मस्त कर दिया। अभी उसे फ़ोन लगाऊँ क्या?
श्याम: लगाओ इसमे क्या प्रॉब्लम है।
राजीव सरला को फ़ोन लगाया।
सरला: हाय ।
राजीव: हाय कैसी हो?
सरला: ठीक हूँ।
श्याम ने इशारा किया कि स्पीकर मोड में डालो और मेरे बारे में यहाँ होने की बात ना करो। ये कहते हुए उसने आँख मारी।
राजीव: क्या कर रही हो? श्याम बोल रहा था कि तुम सगाई की तय्यारी में लगी हो।
सरला: हाँ बहुत काम है अभी। श्याम भाई सांब चले गए क्या वापस?
राजीव ने आँख मारते हुए कहा: हाँ वो वापस चले गए। वो बता रहे थे कि तुम ज़ेवरों के लिए बहुत परेशान हो?
सरला: वो क्या है ना मेरे पास इतने पैसे नहीं है कि बहुत महँगे ज़ेवर ख़रीद सकूँ तो थोड़ी सी परेशान हूँ।
राजीव: अरे इसमे परेशानी की क्या बात है। तुम ऐसा करो कि कल यहाँ आ जाओ और मेरी बीवी के ज़ेवर पसंद कर लो। तुम उनको ही अपनी बेटी को दे देना। वह आख़िर मेरे घर में वापस आ जाएँगे। मुझे पैसे का कोई लालच नहीं है। मुझे तो बस अपने बेटे की ख़ुशी के लिए मालिनी जैसी प्यारी बहु चाहिए।
सरला: ये क्या कह रहे हैं आप । क्या आप सच में ऐसा करेंगे? मेरी तो सारी परेशानी ही दूर हो जाएगी।
राजीव: अरे मैं यही तो चाहता हूँ कि तुम्हारी सारी परेशानी दूर हो जाए। तुम मुझे बहुत अच्छी लगती हो। और तुमको परेशान नहीं देख सकता।
श्याम मुस्कुराया और आँख मारी।
सरला: तो मैं कब आऊँ?
राजीव : अरे कल ही आ जाओ और ज़ेवर पसंद कर लो तो मैं उनको पोलिश करवा दूँगा।
सरला: ठीक है मैं कल श्याम भाई सांब के साथ आ जाऊँगी।
राजीव : अरे वो तो अभी वापस गया है क्या फिर से कल वापस आ पाएगा?
सरला: ओह हाँ देखिए मैं उनको बोलूँगी आ सके तो बढ़िया वरना अकेली ही आ जाऊँगी।
राजीव: तुम मुझे बता देना तो मैं तुमको लेने बस अड्डे आ जाऊँगा। बस एक रिक्वेस्ट है।
सरला: बोलिए ना ?
राजीव: कल आप काली साड़ी और स्लीव्लेस ब्लाउस में आओगी।
सरला: आप भी ना , मुझे हमेशा हेरोयन की तरह सजने को कहते रहते हैं।
राजीव: क्या करूँ? दिल से मजबूर हूँ ना। आप मुझे बहुत अच्छी लगती हो।
सरला: भाई सांब आप भी ना ।
राजीव: एक बात बोलूँ श्याम बहुत लकी है जो हमेशा तुम्हारे साथ रहता है। मुझे तो उससे जलन हो रही है।
सरला हड़बड़ाकर : उन्होंने ऐसा कुछ कहा क्या?
राजीव: क्या कहा? किस बारे में पूछ रही हो?
सरला: वो कुछ नहीं।
श्याम मुस्कुराया और फिर आँख मारी।
राजीव: एक बात पूछूँ ? बुरा ना मानो तो?
सरला: पूछिए।
राजीव: देखो तुम्हारे पति के जाने के बाद श्याम तुम्हारा बहुत ख़याल रखता है । वह तुमको बहुत घूरता भी है। तुम दोनों में कुछ चल रहा है क्या?
सरला: क्या भाई सांब , आप भी, ऐसा कुछ नहीं है। वो मेरे जेठ जी हैं।
श्याम फिर से मुस्कुराया।
राजीव: अच्छा चलो छोड़ो ये सब ,कल मिलते है। हाँ काली साड़ी याद रखना।
सरला हँसते हुए : ठीक है काली साड़ी ही पहनूँगी। बाई।
राजीव: बाई ड़ीयर । उसने फ़ोन काट दिया।
श्याम: अरे अपने मुँह से थोड़े मानेगी। वह बहुत तेज़ औरत है।
राजीव: चुदाई में मज़ा देती है?
श्याम: अरे बहुत मज़ा देती है। वह बहुत प्यासी औरत है। पटा लो और ठोको।
राजीव: देखो कल क्या होता है? वैसे तुम वापस आओगे क्या उसके साथ?
श्याम: अरे नहीं। तुम मज़े लो। मैं आऊँगा तो तुम्हारा काम बिगड़ जाएगा।
राजीव : थैंक्स यार।
श्याम: अब वापस जाता हूँ।
राजीव: चलो तुमको बस अड्डे छोड़ देता हूँ।
राजीव उसे छोड़कर घर जाते हुए सोचने लगा कि कल देखो सरला का बैंड बजता है कि नहीं।
अगले दिन श्याम आया और दिन भर दोनों सगाई की तय्यारीयों का जायज़ा लिया और फिर दोपहर को खाना एक रेस्तराँ में खाया। राजीव ने बीयर ऑर्डर की तो श्याम बोला किमैं तो जिन पियूँगा। राजीव बीयर और श्याम जिन पीने लगा। जल्दी ही श्याम को चढ़ गयी।
राजीव ने सोचा कि इससे नशे की हालत में सरला की कुछ बातें की जाएँ।
राजीव: श्याम भाई ये तो बताओ कि सरला इस उम्र में भी इतनी सुंदर कैसे है?
श्याम थोड़े से सरूर में आकर: पता नहीं यार, मगर भगवान उसपर कुछ ज़्यादा ही मेहरबान हैं। देखो ना इस उम्र में भी क्या क़यामत लगती है।
राजीव: वही तो देखा जाए तो इस उम्र में औरतें मोटी और बेडौल हो जाती हैं, पर वह तो अभी भी मस्त फ़िगर मेंटेंन की है।
श्याम: हाँ भाई सच है अभी भी मस्ती से भरी हुई लगती है।
राजीव: एक बात पूँछुँ बुरा तो नहीं मानोगे?
श्याम नशे में : पूछो यार अब तो हम दोस्त हो गए।
राजीव: वो विधवा है और तुम दोनों एक ही घर में रहते हो। तुम्हारा ईमान नहीं डोलता ?
वह जान बूझकर पूछा हालाँकि उसको तो पता था कि वो सरला की चुदाई करता रहता है।
श्याम झूमते हुए : अब यार तुमसे क्या छपाऊँ, सच तो ये है जब मेरा भाई इसको ब्याह के लाया था तभी से मैं उसका दीवाना हो गया था।
राजीव: ओह तो क्या तुम उसकी इसके पति के जीते जी ही पटा चुके थे।
श्याम: हाँ यार , मेरी बीवी बीमार रहती थी और जवानी का मज़ा नहीं देती थी। और मेरा छोटा भाई भी इसे ज़्यादा सुख नहीं दे पाता था। सो ये मुझसे जल्दी ही आसानी से पट गयी। सच तो ये है कि मालिनी मेरी ही बेटी है।
राजीव उसका मुँह देखता रह गया।
राजीव: ओह ये बात है। तो क्या अभी भी तुम उसको चो- मतलब करते हो?
श्याम: हाँ यार पर सबसे छुपाकर। मगर मुझे शक है कि घर में सबको पता है और सब चुप रहते हैं। पर हम अभी भी खूल्लम ख़ूल्ला कभी नहीं करते।
राजीव: यार तुम तो बहुत लकी हो ।
श्याम: लगता है कि तुमको भी पसंद है वो। है ना? मैंने तुमको उसे कई बार घूरते देखा है।
राजीव: हाँ यार सच में बोम्ब है वो, मेरी नींद ही उड़ा दी है उसने।
श्याम: तुम चाहो तो उसे पटा सकते हो?
राजीव: वो कैसे?
श्याम: देखो अभी हमें पैसों की बहुत ज़रूरत है अगर तुम इस समय उसकी मदद कर दोगे तो वह तुम्हारे सामने समर्पण कर देगी।
राजीव: ओह ऐसा क्या?
श्याम: वो इस समय ज़ेवरों को लेकर बहुत चिंतित है। तुम इसमे उसकी मदद कर सकते हो।
राजीव: अरे ये तो बहुत ही सिम्पल सी बात है। मैं अपनी बीवी के ज़ेवर पोलिश करवा के उसे दे दूँगा और वो उसे मेरी बहु को दे देगी। इस तरह घर का माल घर में वापस आ जाएगा। और सबकी इज़्ज़त भी रह जाएगी।
श्याम: वाह क्या सुझाव है। वो तो तुम्हारे अहसान तले दब ही जाएगी। तुम उससे मज़े कर लेना।
राजीव: तुमको बुरा तो नहीं लगेगा।
श्याम: यार इसमें बुरा लगने की क्या बात है? यार औरत होती है चुदाई के लिए। तुमसे भी चूद जाएगी तो क्या उसकी बुर घिस जाएगी?
राजीव: आऽऽह यार तुमने तो मस्त कर दिया। अभी उसे फ़ोन लगाऊँ क्या?
श्याम: लगाओ इसमे क्या प्रॉब्लम है।
राजीव सरला को फ़ोन लगाया।
सरला: हाय ।
राजीव: हाय कैसी हो?
सरला: ठीक हूँ।
श्याम ने इशारा किया कि स्पीकर मोड में डालो और मेरे बारे में यहाँ होने की बात ना करो। ये कहते हुए उसने आँख मारी।
राजीव: क्या कर रही हो? श्याम बोल रहा था कि तुम सगाई की तय्यारी में लगी हो।
सरला: हाँ बहुत काम है अभी। श्याम भाई सांब चले गए क्या वापस?
राजीव ने आँख मारते हुए कहा: हाँ वो वापस चले गए। वो बता रहे थे कि तुम ज़ेवरों के लिए बहुत परेशान हो?
सरला: वो क्या है ना मेरे पास इतने पैसे नहीं है कि बहुत महँगे ज़ेवर ख़रीद सकूँ तो थोड़ी सी परेशान हूँ।
राजीव: अरे इसमे परेशानी की क्या बात है। तुम ऐसा करो कि कल यहाँ आ जाओ और मेरी बीवी के ज़ेवर पसंद कर लो। तुम उनको ही अपनी बेटी को दे देना। वह आख़िर मेरे घर में वापस आ जाएँगे। मुझे पैसे का कोई लालच नहीं है। मुझे तो बस अपने बेटे की ख़ुशी के लिए मालिनी जैसी प्यारी बहु चाहिए।
सरला: ये क्या कह रहे हैं आप । क्या आप सच में ऐसा करेंगे? मेरी तो सारी परेशानी ही दूर हो जाएगी।
राजीव: अरे मैं यही तो चाहता हूँ कि तुम्हारी सारी परेशानी दूर हो जाए। तुम मुझे बहुत अच्छी लगती हो। और तुमको परेशान नहीं देख सकता।
श्याम मुस्कुराया और आँख मारी।
सरला: तो मैं कब आऊँ?
राजीव : अरे कल ही आ जाओ और ज़ेवर पसंद कर लो तो मैं उनको पोलिश करवा दूँगा।
सरला: ठीक है मैं कल श्याम भाई सांब के साथ आ जाऊँगी।
राजीव : अरे वो तो अभी वापस गया है क्या फिर से कल वापस आ पाएगा?
सरला: ओह हाँ देखिए मैं उनको बोलूँगी आ सके तो बढ़िया वरना अकेली ही आ जाऊँगी।
राजीव: तुम मुझे बता देना तो मैं तुमको लेने बस अड्डे आ जाऊँगा। बस एक रिक्वेस्ट है।
सरला: बोलिए ना ?
राजीव: कल आप काली साड़ी और स्लीव्लेस ब्लाउस में आओगी।
सरला: आप भी ना , मुझे हमेशा हेरोयन की तरह सजने को कहते रहते हैं।
राजीव: क्या करूँ? दिल से मजबूर हूँ ना। आप मुझे बहुत अच्छी लगती हो।
सरला: भाई सांब आप भी ना ।
राजीव: एक बात बोलूँ श्याम बहुत लकी है जो हमेशा तुम्हारे साथ रहता है। मुझे तो उससे जलन हो रही है।
सरला हड़बड़ाकर : उन्होंने ऐसा कुछ कहा क्या?
राजीव: क्या कहा? किस बारे में पूछ रही हो?
सरला: वो कुछ नहीं।
श्याम मुस्कुराया और फिर आँख मारी।
राजीव: एक बात पूछूँ ? बुरा ना मानो तो?
सरला: पूछिए।
राजीव: देखो तुम्हारे पति के जाने के बाद श्याम तुम्हारा बहुत ख़याल रखता है । वह तुमको बहुत घूरता भी है। तुम दोनों में कुछ चल रहा है क्या?
सरला: क्या भाई सांब , आप भी, ऐसा कुछ नहीं है। वो मेरे जेठ जी हैं।
श्याम फिर से मुस्कुराया।
राजीव: अच्छा चलो छोड़ो ये सब ,कल मिलते है। हाँ काली साड़ी याद रखना।
सरला हँसते हुए : ठीक है काली साड़ी ही पहनूँगी। बाई।
राजीव: बाई ड़ीयर । उसने फ़ोन काट दिया।
श्याम: अरे अपने मुँह से थोड़े मानेगी। वह बहुत तेज़ औरत है।
राजीव: चुदाई में मज़ा देती है?
श्याम: अरे बहुत मज़ा देती है। वह बहुत प्यासी औरत है। पटा लो और ठोको।
राजीव: देखो कल क्या होता है? वैसे तुम वापस आओगे क्या उसके साथ?
श्याम: अरे नहीं। तुम मज़े लो। मैं आऊँगा तो तुम्हारा काम बिगड़ जाएगा।
राजीव : थैंक्स यार।
श्याम: अब वापस जाता हूँ।
राजीव: चलो तुमको बस अड्डे छोड़ देता हूँ।
राजीव उसे छोड़कर घर जाते हुए सोचने लगा कि कल देखो सरला का बैंड बजता है कि नहीं।