12-03-2023, 04:32 AM
अध्याय ३b
इतने में मेरी नजर रिसेप्शन पर पहले से बैठे हुए एक अधेड़ उम्र के आदमी पर पड़ी| उसे देखकर ऐसा लग रहा था कि वह काफी पैसे वाला है और शायद वह यहां यौन सेवा यानी सर्विस लेने के लिए आया है| उसके हाथ में एक एल्बम था जिसमें कई सारी लड़कियों की तस्वीरें भरी हुई थी|
मुझे याद आया रिसेप्शनिस्ट मुन्नी ने मुझे फोन पर कहा था कि मैं सर्विस के लिए अपना प्रोफाइल चुन सकती हूं; वह आदमी भी शायद यही कर रहा था- अपने लिए प्रोफाइल चुन रहा था|
लेकिन उस वक्त उसकी निगाहें मुझ पर ही टिकी हुई थी और वह मुझे ऊपर से नीचे तक नाप रहा था- शायद वह सोच रहा होगा क्या मैं सर्विस लेने आई हूं या फिर देने? और शायद इसीलिए अनजाने में ही उसका दूसरा हाथ उसके दो टांगों के बीच के हिस्से कोसहला रहा था| मुझे यकीन हो गया कि अगर उससे किसी ने यह बताया होता कि मैं यहां सर्विस देती हूं- मैं यहां की कर्मचारी हूं, तोशायद वह सर्विस के लिए मुझे ही पसंद करता|
शायद इसीलिए मेरे पति और गोपा मौसी मेरा जींस और टीशर्ट पहनना पसंद नहीं करते| क्योंकि उनका मानना है कि जींस और टीशर्ट पहनने से मैं काफी अवांछित ध्यान आकर्षित करती हूं|
क्योंकि इस पहनावे में मेरा फिगर अच्छी तरह उभर कर आता है और मैं और भी सुंदर और मैं यौन रूप से बहुत आकर्षक दिखती हूं...
मुन्नी को रिसेप्शन से उठकर अंदर कमरे में जाने के शायद चंद ही मिनट गुजरे होंगे लेकिन मुझे ऐसा लग रहा था कि न जाने क्यों काफी देर हो गई- पता नहीं सुबह- सुबह मेरे दिमाग में क्या भूत सवार हुआ था कि मैं गोपा मौसी की बातों में आ गई और मैंने सोचा कि जब मैं पाँक पाड़ा की लड़की हूं तो लेचारी करना- यानी कि पति के रहते हुए भी दूसरे मर्दों के साथ संबंध बनाना मेरा हक बनता है- तभी तो मैं यहां तक चली आई--- अब ना जाने कौन सी मुसीबत मेरे सर आने वाली है....
कि इतने में रिसेप्शन के बगल वाला दरवाजा खुला और उसमें से रिसेप्शनिस्ट मुन्नी मुस्कुराती हुई अंदर दाखिल हुई| रिसेप्शन की कुर्सी पर बैठकर उसने उस अधेड़ उम्र के आदमी से कहा, "सर? क्या आपने प्रोफाइल का चुनाव कर लिया है?"
उस आदमी ने भी मुस्कुराकर जवाब दिया, "जी हां" फिर उसने मेरी तरफ एक बार देखा और फिर हाथ में वह वाला एल्बम लिए हुए रिसेप्शनिस्ट मुन्नी की तरफ गया और एल्बम खोलकर उसने एक तस्वीर पर अपनी उंगली रखी और फिर दोबारा उसने मेरी तरफ देखा|
अब तब तो मैं समझ गई थी कि अगर उस एल्बम में मेरी तस्वीर लगी हुई होती तो शायद वह मेरा ही चुनाव करता|
मुन्नी ने उस आदमी से कहा, "गुड चॉइस सर" यह कहकर उसने अपने टेबल पर लगे हुए एक स्विच को दबाया, और एक गुलाबी सलवार कमीज पहनी परिचारिका सी दिखने वाली औरत रिसेप्शन में आई|
मुन्नी ने दोबारा उस आदमी से कहा, "सर आप इनके साथ जाइए, यह आपको अपने कमरे तक ले जाएंगे- हैव ए नाइस टाइम, सर (एक अच्छा समय गुज़रिये, सर)"
उसके बाद मुन्नी ने मुस्कुराते हुए मेरी तरफ देखा और फिर बोलिए, "मिस, आपको मैडम ने अंदर बुलाया है---"
मैंने मन ही मन सोचा, मर गए! मैडम ने अंदर बुलाया है? मतलब मैं फंस गई, लेकिन अब कोई चारा भी तो नहीं है- मैडम ने बुलायाहै तो अंदर जाना ही पड़ेगा|
रिसेप्शन में AC चल रहा था, लेकिन घबराहट के मारे मैं पसीना पसीना हो रही थी... पर मुझे क्या मालूम था कि मेरे लिए इससे भी बड़ा आश्चर्य इंतजार कर रहा था|
मैं जब रिसेप्शन के बगल वाले दरवाजे से अंदर एक ऑफिस रूम जैसे कमरे में दाखिल हुई तो मैंने देखा कि बड़े से टेबल के पीछे एक शानदार सी कुर्सी पर बैठी हुई है एक अति सुंदर 45 या 50 साल की औरत बैठी हुई है और जैसे ही उसने नजर उठाकर मेरी तरफ देखा... बाहर बड़े जोर से बदल गरजे पर मानो बिजली मेरे ऊपर गिरी...
क्रमशः
इतने में मेरी नजर रिसेप्शन पर पहले से बैठे हुए एक अधेड़ उम्र के आदमी पर पड़ी| उसे देखकर ऐसा लग रहा था कि वह काफी पैसे वाला है और शायद वह यहां यौन सेवा यानी सर्विस लेने के लिए आया है| उसके हाथ में एक एल्बम था जिसमें कई सारी लड़कियों की तस्वीरें भरी हुई थी|
मुझे याद आया रिसेप्शनिस्ट मुन्नी ने मुझे फोन पर कहा था कि मैं सर्विस के लिए अपना प्रोफाइल चुन सकती हूं; वह आदमी भी शायद यही कर रहा था- अपने लिए प्रोफाइल चुन रहा था|
लेकिन उस वक्त उसकी निगाहें मुझ पर ही टिकी हुई थी और वह मुझे ऊपर से नीचे तक नाप रहा था- शायद वह सोच रहा होगा क्या मैं सर्विस लेने आई हूं या फिर देने? और शायद इसीलिए अनजाने में ही उसका दूसरा हाथ उसके दो टांगों के बीच के हिस्से कोसहला रहा था| मुझे यकीन हो गया कि अगर उससे किसी ने यह बताया होता कि मैं यहां सर्विस देती हूं- मैं यहां की कर्मचारी हूं, तोशायद वह सर्विस के लिए मुझे ही पसंद करता|
शायद इसीलिए मेरे पति और गोपा मौसी मेरा जींस और टीशर्ट पहनना पसंद नहीं करते| क्योंकि उनका मानना है कि जींस और टीशर्ट पहनने से मैं काफी अवांछित ध्यान आकर्षित करती हूं|
क्योंकि इस पहनावे में मेरा फिगर अच्छी तरह उभर कर आता है और मैं और भी सुंदर और मैं यौन रूप से बहुत आकर्षक दिखती हूं...
मुन्नी को रिसेप्शन से उठकर अंदर कमरे में जाने के शायद चंद ही मिनट गुजरे होंगे लेकिन मुझे ऐसा लग रहा था कि न जाने क्यों काफी देर हो गई- पता नहीं सुबह- सुबह मेरे दिमाग में क्या भूत सवार हुआ था कि मैं गोपा मौसी की बातों में आ गई और मैंने सोचा कि जब मैं पाँक पाड़ा की लड़की हूं तो लेचारी करना- यानी कि पति के रहते हुए भी दूसरे मर्दों के साथ संबंध बनाना मेरा हक बनता है- तभी तो मैं यहां तक चली आई--- अब ना जाने कौन सी मुसीबत मेरे सर आने वाली है....
कि इतने में रिसेप्शन के बगल वाला दरवाजा खुला और उसमें से रिसेप्शनिस्ट मुन्नी मुस्कुराती हुई अंदर दाखिल हुई| रिसेप्शन की कुर्सी पर बैठकर उसने उस अधेड़ उम्र के आदमी से कहा, "सर? क्या आपने प्रोफाइल का चुनाव कर लिया है?"
उस आदमी ने भी मुस्कुराकर जवाब दिया, "जी हां" फिर उसने मेरी तरफ एक बार देखा और फिर हाथ में वह वाला एल्बम लिए हुए रिसेप्शनिस्ट मुन्नी की तरफ गया और एल्बम खोलकर उसने एक तस्वीर पर अपनी उंगली रखी और फिर दोबारा उसने मेरी तरफ देखा|
अब तब तो मैं समझ गई थी कि अगर उस एल्बम में मेरी तस्वीर लगी हुई होती तो शायद वह मेरा ही चुनाव करता|
मुन्नी ने उस आदमी से कहा, "गुड चॉइस सर" यह कहकर उसने अपने टेबल पर लगे हुए एक स्विच को दबाया, और एक गुलाबी सलवार कमीज पहनी परिचारिका सी दिखने वाली औरत रिसेप्शन में आई|
मुन्नी ने दोबारा उस आदमी से कहा, "सर आप इनके साथ जाइए, यह आपको अपने कमरे तक ले जाएंगे- हैव ए नाइस टाइम, सर (एक अच्छा समय गुज़रिये, सर)"
उसके बाद मुन्नी ने मुस्कुराते हुए मेरी तरफ देखा और फिर बोलिए, "मिस, आपको मैडम ने अंदर बुलाया है---"
मैंने मन ही मन सोचा, मर गए! मैडम ने अंदर बुलाया है? मतलब मैं फंस गई, लेकिन अब कोई चारा भी तो नहीं है- मैडम ने बुलायाहै तो अंदर जाना ही पड़ेगा|
रिसेप्शन में AC चल रहा था, लेकिन घबराहट के मारे मैं पसीना पसीना हो रही थी... पर मुझे क्या मालूम था कि मेरे लिए इससे भी बड़ा आश्चर्य इंतजार कर रहा था|
मैं जब रिसेप्शन के बगल वाले दरवाजे से अंदर एक ऑफिस रूम जैसे कमरे में दाखिल हुई तो मैंने देखा कि बड़े से टेबल के पीछे एक शानदार सी कुर्सी पर बैठी हुई है एक अति सुंदर 45 या 50 साल की औरत बैठी हुई है और जैसे ही उसने नजर उठाकर मेरी तरफ देखा... बाहर बड़े जोर से बदल गरजे पर मानो बिजली मेरे ऊपर गिरी...
क्रमशः
*Stories-Index* New Story: উওমণ্ডলীর লৌন্ডিয়া