09-01-2023, 06:59 PM
(This post was last modified: 10-01-2023, 10:33 AM by rajusethzee. Edited 2 times in total. Edited 2 times in total.)
ससुर सेक्स की हिंदी कहानी में पढ़ें कि मेरे पति के दूर रहने के कारण मेरी चुदाई की जरूरत पूरी नहीं हो पा रही थी. मैंने अपने देवर को फांसना चाहा पर हुआ कुछ ये …
नमस्कार दोस्तो, सेक्स कहानी शुरू करने से पहले मैं कुछ कहना चाहती हूँ मेरे कुछ नासमझ और बददिमाग पाठक हैं, जो कहानी को पूरा और समझ कर नहीं पढ़ते हैं और बाद में बिना मतलब के मैसेज करते हैं.
ऐसे पाठकों से मेरा इतना ही कहना है कि कहानी को दिमाग लगा कर पढ़ें और पहले ये जान लें कि कहानी किसकी है और आप क्या सवाल कर रहे हैं?
ससुर सेक्स की हिंदी कहानी के पहले भाग
मैं ससुर जी के सामने नंगी चली गयी
में अभी तक आपने कहानी में पढ़ा कि किस तरह से मेरी सहेली नैना अपने जिस्म की आग में जल रही थी, जिसके कारण उसने पहले अपने देवर पर डोरे डाले लेकिन सफल नहीं हुई. इसके बाद नैना और उसके ससुर के बीच ऐसा कुछ होने लगा, जिससे कि नैना उनके ऊपर आकर्षित होने लगी.
अब आगे की सेक्स कहानी में पढ़ते हैं कि क्या नैना और उसके ससुर के बीच कुछ हो पाया था या नहीं.
दोस्तो मैं नैना, आपको बता रही थी कि मेरे और ससुर जी के बीच एक दूसरे को गंदी निगाहों से देखने का खेल काफी समय से चल रहा था.
हम दोनों ही घर पर अकेले रहते थे. मैं उन्हें रिझाने के लिए अक्सर गाउन के अन्दर चड्डी ब्रा नहीं पहनती थी जिससे गाउन मेरे जिस्म पर चिपका रहता था और मेरे अन्दर के अंग गाउन से झलकते थे, जिन्हें देखने के लिए मेरे ससुर बार बार मेरे सामने आते थे.
हम दोनों के बदन में ही चुदाई की गर्मी भरती जा रही थी और हम दोनों ही जानते थे कि दोनों के दिल में क्या चल रहा है लेकिन किसी की हिम्मत नहीं हो रही थी कि किसी को कुछ बोले या आगे बढ़ कर पहल करे.
फिर साल 2020 में अचानक से सारे देश में लॉकडाउन लग गया.
इस बीच न हम लोग कहीं जाते थे और न ही हमारे यहां कोई आता था.
मेरे पति और देवर का भी आना मुश्किल हो गया था क्योंकि सभी साधन बंद हो चुके थे.
अब मैं और ससुर जी सारा दिन घर पर ही रहते.
इस बीच हम दोनों के बीच की वासना अपने चरम पर पहुंच गई.
ससुर जी की हवस भरी नज़रें मुझे बेहद ही गंदी तरह से देखने लगीं और अब मुझसे भी अपने आप पर कंट्रोल नहीं होता था.
मैं रोज अपनी उंगलियों से अपने आप को शांत करने लगी लेकिन फिर भी मेरा बदन किसी मर्द को पाने के लिए उतावला हो गया था.
आखिर में वो दिन आ ही गया जब हम दोनों का सब्र टूट गया.
हुआ यूं कि एक दिन शाम को खाने से पहले मैं खाना खाने के लिए ससुर जी को बुलाने उनके कमरे में गई.
उस वक्त वो बिस्तर पर बैठे हुए थे और सामने मेज पर शराब रखकर पी रहे थे.
मैं उन्हें खाने के लिए बोली और वापस चली आई.
कुछ समय बाद वो खाना खाने के लिए आए और हम दोनों ने खाना खाया.
खाना खाने के बाद मैं साफ सफाई करने लगी और फुर्सत होकर अपने कमरे में जाने लगी.
तभी मेरे ससुर जी ने मुझे आवाज लगाई.
मैं उनके कमरे में गई तो उन्होंने मुझसे पानी लाने के लिए कहा.
मैं पानी का जग लेकर उनके पास गई और उन्होंने पानी अपने दारू वाले गिलास में भरा और बाक़ी का जग का पानी अपने जग में भर लिया.
फिर उन्होंने दारू का एक सिप पिया.
जब मैं उनसे खाली जग वापस लेने लगी तो उन्होंने मेरे हाथों को बड़े प्यार से सहलाया और मुझे देखते हुए मुस्कुरा दिये.
उन्हें देख कर मेरे चेहरे पर भी मुस्कान की लहर आ गई.
ऐसा होना हम दोनों के लिए अब आम बात हो गई थी.
तभी अचानक से ससुर जी ने मेरा हाथ पकड़ लिया और एक झटके में मुझे अपनी ओर खींचकर मुझे अपनी गोद में बिठा लिया.
नमस्कार दोस्तो, सेक्स कहानी शुरू करने से पहले मैं कुछ कहना चाहती हूँ मेरे कुछ नासमझ और बददिमाग पाठक हैं, जो कहानी को पूरा और समझ कर नहीं पढ़ते हैं और बाद में बिना मतलब के मैसेज करते हैं.
ऐसे पाठकों से मेरा इतना ही कहना है कि कहानी को दिमाग लगा कर पढ़ें और पहले ये जान लें कि कहानी किसकी है और आप क्या सवाल कर रहे हैं?
ससुर सेक्स की हिंदी कहानी के पहले भाग
मैं ससुर जी के सामने नंगी चली गयी
में अभी तक आपने कहानी में पढ़ा कि किस तरह से मेरी सहेली नैना अपने जिस्म की आग में जल रही थी, जिसके कारण उसने पहले अपने देवर पर डोरे डाले लेकिन सफल नहीं हुई. इसके बाद नैना और उसके ससुर के बीच ऐसा कुछ होने लगा, जिससे कि नैना उनके ऊपर आकर्षित होने लगी.
अब आगे की सेक्स कहानी में पढ़ते हैं कि क्या नैना और उसके ससुर के बीच कुछ हो पाया था या नहीं.
दोस्तो मैं नैना, आपको बता रही थी कि मेरे और ससुर जी के बीच एक दूसरे को गंदी निगाहों से देखने का खेल काफी समय से चल रहा था.
हम दोनों ही घर पर अकेले रहते थे. मैं उन्हें रिझाने के लिए अक्सर गाउन के अन्दर चड्डी ब्रा नहीं पहनती थी जिससे गाउन मेरे जिस्म पर चिपका रहता था और मेरे अन्दर के अंग गाउन से झलकते थे, जिन्हें देखने के लिए मेरे ससुर बार बार मेरे सामने आते थे.
हम दोनों के बदन में ही चुदाई की गर्मी भरती जा रही थी और हम दोनों ही जानते थे कि दोनों के दिल में क्या चल रहा है लेकिन किसी की हिम्मत नहीं हो रही थी कि किसी को कुछ बोले या आगे बढ़ कर पहल करे.
फिर साल 2020 में अचानक से सारे देश में लॉकडाउन लग गया.
इस बीच न हम लोग कहीं जाते थे और न ही हमारे यहां कोई आता था.
मेरे पति और देवर का भी आना मुश्किल हो गया था क्योंकि सभी साधन बंद हो चुके थे.
अब मैं और ससुर जी सारा दिन घर पर ही रहते.
इस बीच हम दोनों के बीच की वासना अपने चरम पर पहुंच गई.
ससुर जी की हवस भरी नज़रें मुझे बेहद ही गंदी तरह से देखने लगीं और अब मुझसे भी अपने आप पर कंट्रोल नहीं होता था.
मैं रोज अपनी उंगलियों से अपने आप को शांत करने लगी लेकिन फिर भी मेरा बदन किसी मर्द को पाने के लिए उतावला हो गया था.
आखिर में वो दिन आ ही गया जब हम दोनों का सब्र टूट गया.
हुआ यूं कि एक दिन शाम को खाने से पहले मैं खाना खाने के लिए ससुर जी को बुलाने उनके कमरे में गई.
उस वक्त वो बिस्तर पर बैठे हुए थे और सामने मेज पर शराब रखकर पी रहे थे.
मैं उन्हें खाने के लिए बोली और वापस चली आई.
कुछ समय बाद वो खाना खाने के लिए आए और हम दोनों ने खाना खाया.
खाना खाने के बाद मैं साफ सफाई करने लगी और फुर्सत होकर अपने कमरे में जाने लगी.
तभी मेरे ससुर जी ने मुझे आवाज लगाई.
मैं उनके कमरे में गई तो उन्होंने मुझसे पानी लाने के लिए कहा.
मैं पानी का जग लेकर उनके पास गई और उन्होंने पानी अपने दारू वाले गिलास में भरा और बाक़ी का जग का पानी अपने जग में भर लिया.
फिर उन्होंने दारू का एक सिप पिया.
जब मैं उनसे खाली जग वापस लेने लगी तो उन्होंने मेरे हाथों को बड़े प्यार से सहलाया और मुझे देखते हुए मुस्कुरा दिये.
उन्हें देख कर मेरे चेहरे पर भी मुस्कान की लहर आ गई.
ऐसा होना हम दोनों के लिए अब आम बात हो गई थी.
तभी अचानक से ससुर जी ने मेरा हाथ पकड़ लिया और एक झटके में मुझे अपनी ओर खींचकर मुझे अपनी गोद में बिठा लिया.