Thread Rating:
  • 2 Vote(s) - 3 Average
  • 1
  • 2
  • 3
  • 4
  • 5
Incest फुफेरे भाई के साथ
#3
मैं और मेरे घरवाले एक पारिवारिक समारोह में एक रिश्तेदार के यहां गांव गए हुए थे.
क्योंकि फंक्शन बड़ा था इसलिए काफी रिश्तेदार इकट्ठा हुए थे.

यह फंक्शन काफी दिनों तक चलने वाला था.

मैं काफी सालों बाद किसी पारिवारिक समारोह में जा रही थी इसलिए सब रिश्तेदारों को थोड़ा थोड़ा भूल भी गयी थी, पर कुछ याद भी थे.

वहां पर सब रिश्तेदारों का रुकने का अच्छा प्रबंध किया हुआ था.
अच्छी बात ये थी कि सारे बड़े लोगों को रहने के लिए अलग घर में कमरे दिए गए थे.
और जो कम उम्र के थे, उनके लिए अलग घर में स्थान दिया गया था ताकि सब समय का भरपूर आनन्द लें.

मैं जहां रुकी थी, वहां मेरे सारे रिश्तेदारों के बच्चे और भतीजे वगैरह रुके हुए थे.

उन्हीं में एक लड़का था विपिन.
वो मेरी बुआ का लड़का था. वो भी अपने घर से इसी भवन में रहने आ गया था जबकि उसका घर इसी गांव में था.

विपिन को वैसे तो मैं बचपन से जानती थी.
उसकी उम्र उस वक़्त 19 साल के लगभग की थी, जब उसके साथ मेरे जिस्मानी सम्बन्ध बने.

जब मैं छोटी थी तो गर्मियों की छुट्टियों में उसके घर में जाती थी. उन दिनों हम दोनों खूब मस्ती करते थे.
फिर हम सब बड़े होते चले गए तो आना जाना और बातचीत काफी कम हो गयी थी.

क्योंकि मैं उम्र में उससे कुछ साल बड़ी थी इसलिए वो मुझे दीदी कह कर बुलाता था.

शुरू में तो हम दोनों ज्यादा बातचीत नहीं कर पाए, पर फिर धीरे धीरे घुलते मिलते चले गए.

एक दिन दोपहर में सब लोग खा पीकर एक दूसरे के साथ गप्पें मार रहे थे.

धीरे धीरे मुझे समझ आ गया कि विपिन कभी कभी मुझे देखता रहता था और जब वापस उसे देखती, तो नजर इधर उधर कर लेता था.

शुरू में तो मैंने ऐसा वैसा कुछ नहीं सोचा, पर धीरे धीरे मुझे समझ आ गया कि लौंडा नया नया जवान हुआ है … इसलिए शायद वैसे ही आकर्षित होगा.
इसलिए मैंने ज्यादा ध्यान नहीं दिया.

धीरे धीरे हम सब साथ में घुलने मिलने लगे.
कभी कभी गलती से अगर मेरे शरीर का कोई हिस्सा विपिन से छू जाता तो वो असहज हो जाता था.

एक बार ऐसे ही हम दोनों थोड़ा अलग से होकर बात कर रहे थे तो मैंने अंजाने में उसका हाथ पकड़ लिया.
फिर तो बस वो हकला हकला कर बोलने लगा.
मैंने सोचा शायद शर्मा गया होगा या लड़कियों के साथ ज्यादा घुलता मिलता नहीं होगा.

मैंने ऐसे ही बातों बातों में मज़ाक में उससे पूछा- क्या तुम्हारी कोई गर्लफ्रेंड है?
ये सुनकर तो वो बिल्कुल शर्मा गया और बोला- क्या दीदी आप भी ना, ऐसी कोई बात नहीं है.

मैंने मज़ाक भरे लहजे में कहा- अरे चलो कोई बात नहीं, कभी दिल्ली आना. मैं पक्का तुम्हारी गर्लफ्रेंड बनवा दूंगी.
वो शर्मा गया.

फिर मैंने पूछा- कैसी लड़की पसंद है तुम्हें?
उसने थोड़ा शर्माते हुए कहा- बिल्कुल आप जैसी.

मैंने हल्का सा मुस्कुराते हुए उसे प्यार से चपत लगा दी और बोली- क्या कहा तुमने!
विपिन थोड़ा सकपकाते हुए बोला- अरे मेरा मतलब आप जैसे स्वभाव की.

मैंने मज़ाक करते हुए कहा- मेरे जैसी मिलनी तो मुश्किल है, चलो मुझे ही बना लेना. बस जहां मैं बोलूं, घुमा देना और कुछ अच्छा सा खिला देना.
उसने बोला- ठीक है दीदी.

मैंने आगे बोला- और हां, दिल्ली में गर्लफ्रेंड को दीदी नहीं बुलाते.
वो हंस दिया.

फिर बस हम इधर उधर की बात करके अपने अपने कमरों में चले गए.
धीरे धीरे मुझे ये भी समझ आ गया कि वो मौका पाकर मेरे शरीर के अलग अलग हिस्सों को निहारता रहता है.

एक दिन वो दूर बैठा हुआ था तो मैंने देखा कि वो फोन में देखते हुए अपने लंड को हल्के हाथों से सहला रहा है.
मैं समझ तो गयी पर सोचा कि चलो इसे डराती हूँ.

मैं उसके पास पीछे से गयी और ‘हौ …’ करके डरा दिया.

हड़बड़ाहट में उसके हाथ से फोन फर्श पर गिर गया.
मैंने नीचे फोन पर देखा, तो उस पर मेरी ही फोटो खुली हुई थी और इधर विपिन का लंड खड़ा हो रखा था.

अब मुझे समझने में देर नहीं लगी कि ये क्या कर रहा था.

मैंने कहा- ये क्या कर रहे थे?
विपिन हड़बड़ाते हुए बोला- दीदी वो मैं … मैं … व्वो वो कुछ नहीं.

मैंने थोड़ा गुस्से से में कहा- ये सब क्या है … मैं इतनी बेवकूफ भी नहीं कि ना समझ सकूँ कि तुम क्या कर रहे थे?

पहले तो मुझे गुस्सा आया पर फिर थोड़ी देर बाद मैंने सोचा कोई बात नहीं सुहानी, लड़का नया नया जवान हुआ है, खूबसूरत जिस्म देख कर बहक गया होगा. वैसे भी तू इतनी खूबसूरत है तो क्या फर्क पड़ गया. क्यों बात का बतंगड़ बना रही.

मैंने ऐसे ही हल्का सा चांटा मारते हुए कहा- सुधर जाओ बेटा, पढ़ाई पर ध्यान दो … इस सब में मत पड़ो.
बस मैं मुस्कुराती हुई वहां से चली गयी.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply


Messages In This Thread
RE: फुफेरे भाई के साथ - by neerathemall - 16-08-2022, 01:58 PM



Users browsing this thread: 2 Guest(s)