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Incest तेरी दीदी बेशर्म
#10
अग्ले सवेरे दिदी सो कर उठी और चाय बनाकर मुझे भी जगा दी ! मै फ़्रेश होकर बाल्कोनी मे आया तो दिदी कुर्सी पर बैठकर चाय पी रही थी, मुझे देखकर बोली….. “राहुल चाय रसोइघर मे है, ले लो और पियो

(राहुल) ठीक है लेकिन मुझे दुध पिने का मन है दिदी

(दिपा शर्मा गयी) चाय पियो फिर दुध भी पी लेना

(राहुल) जब आप अपना चुची मुह्न मे घुसाओगी तभी तो दुध पी

(दिपा) अबे हरामी मेरे चुचि से अभी दुध कैसे निक्लेगा. ” और वो शर्म से सर झुका ली, लेकिन मेरा हाथ उसके चुची पर चला गया और मै जोर-2 से मसलने लगा! वो चुपचाप बैठी रही, मै कुर्सी और करीब किया और दोनो हाथ उनके दोनो चुचि पर लगाकर जोर-2 से मसलने लगा ! 5 मिनट तक चुचि मसलने के बाद दिपा को अपने गोद मे उठाकर कमरे मे ले आया और बेड़ पर सुला दिया, वो मुस्कुराने लगी……. “राहुल सुबह-2 तुम काम-वासना मे लग गये, खाना पीना कैसे बनेगा

(राहुल) खाना का ओर्डेर पास के रेस्तरा मे कर देगे. ”

दिदी के जिस्म से कपड़ा उत्तारा और नग्न जिस्म पर सवार होकर उनको चुमने लगा, उनके गोरे गाल पर चुमा लेता हुआ चुचि का एह्सास अपने सीने पर पा रहा था, दिदी अपने जिभ को मुख से निकाल मेरे मुह्न मे ड़ाल दी, जिभ चुसता हुआ अपने पिठ पर उनके हाथ का एह्सास पा रहा था! दिदी की सांसे तेज हो गयी, वो तड़पने लगी और उनका जिभ निकालकर अपना चेहरा उनके गोल-2 पर किया और अपना गाल चिकने चुचि पर रगड़ने लगा, फिर दिदी अपनी चुची खुद पकड़कर मेरे मुह्न मे घुसा दी, उनका 2/3 चुचि मेरे मुह्न मे था और मै जोर-2 से चुचि चुसता हुआ दुसरा चुचि दबाने लगा! दिदि के चुचि से दुध नही निकल रहा था और वो…. “राहुल बुर में खुजली हो रही है

(राहुल) अभी दुध पिना है, चुदाई बाद मे. ” दिपा के दुस्ररे चुचि को चुसता हुआ मस्त था, मेरा लंड़ 6-7 इंच कि लम्बाई और 2 इंच कि मोटाई ले कर फ़नफ़ना रही थी, अब चुचि चुसना छोड़ा! दिपा दिदी के चिकने मख्मली जिस्म पर अब चुम्बन देने लगा, उनके चिकने सपाट पेट को चुमता हुआ नाभि कि ओर गया और चुमता हुआ कमर तक पहुंचा ! दिदि तड़्प रही थी और दोनो पैर को फ़लकाकर बुर दर्शन कराने लगी, तभी दिदि की गांड़ के निचे तकिआ घुसाया और उनके मोटे-2 जण्घा को चुमने लगा, लेकिन मेरा ध्यान चुत पर ही था, वो उंग़ली से बुर को फ़लकाकर मुझे चाट्ने का न्योता दी और मेरा जिभ बुर के अंदर दौड़ने लगा, चिकने बुर को चाटता हुआ भुल चुका था की बुर दिदी की है और वो सिसकने लगी…. “राहुल अबे कुत्ते बुर चाट्ना छोड़ ना लंड़ मे जान नही है क्या चोदने के लिये

(राहुल) अभी चुसने दे ना फिर चोद कर तेरी बुर फ़ाड़ता हु. ” और मेरे ओंठो के बिच साली रांड़ की रान थी जिसको चुसता हुआ मस्त हो रहा था, पल भर बाद बुर से रस निकलने लगा और मै बुर का रस पीकर… चाट्कर बाथरूम भागा और मुतने के बाद देखा कि दिदि बुर फ़लकाकर छर-2 मुत रही है
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
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RE: तेरी दीदी बेशर्म - by neerathemall - 11-08-2022, 02:31 PM



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