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Adultery पड़ोसन भाभी
#16
मैंने देखा कि भाभी अपनी गांड में लंड लग जाने के बाद भी कोई हरकत नहीं कर रही हैं, तो मैंने अपना लंड उनकी गांड में और अन्दर पेलने लगा. वो कुछ नहीं बोलीं, अब मेरी बर्दाश्त के बाहर हो रहा था.

तभी मैंने उनकी कमर को अपने हाथों से पकड़ा और उनको अपनी ओर खींच लिया.
“विपुल ये तुम क्या कर रहे हो?”
“वही जो बहुत पहले करना चाहिए था.”
“क्या करोगे, चूत मारोगे?”
उनके मुँह से साफ़ चूत मारने की बात सुनकर मैं भी खुल गया- नहीं … आपकी गांड भी मारूंगा और आपके मुँह को भी चोदूँगा.
“अच्छा तुम्हारे अन्दर इतना पॉवर है, जो मुझे चोदोगे?”
“एक बार आजमा के तो देखिये.”
‘देखती हूँ … किधर तक दौड़ पाता है.”
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
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Messages In This Thread
पड़ोसन भाभी - by neerathemall - 05-07-2022, 01:55 PM
RE: पड़ोसन भाभी - by neerathemall - 05-07-2022, 02:01 PM



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