15-06-2022, 05:03 PM
मैंने देखा कि सिद्धार्थ का शरीर बहुत ही मांसल एवम् मज़बूत था और उसकी भुजाओं तथा टांगों एवम् जाँघों की मांसपेशियाँ उभरी हुई थीं।
इतने में मेरा ध्यान उसके लिंग की ओर गया तो मैंने देखा कि उत्तेजना की वजह से वह एकदम तना हुआ था और उसकी नसें भी उभरी हुई थीं।![[Image: 69153721_008_2f89.jpg]](https://cdni.pornpics.de/1280/1/306/69153721/69153721_008_2f89.jpg)
तभी सिद्धार्थ ने मेरे हाथ को पकड़ कर अपने लिंग पर रखते हुए कहा- दीदी, क्या हम सारी रात ऐसे ही खड़े एक दूसरे को देखते रहेंगे? अब आप जल्दी से पारस्परिक हस्त-मैथुन का श्री गणेश तो कर दीजिये।
क्योंकि मैंने अपने जीवन में पहली बार किसी पुरुष के लिंग को हाथ लगाया था इसलिये उसका स्पर्श भी मुझे बहुत ही अजीब लग रहा था।
इतने में मेरा ध्यान उसके लिंग की ओर गया तो मैंने देखा कि उत्तेजना की वजह से वह एकदम तना हुआ था और उसकी नसें भी उभरी हुई थीं।
![[Image: 69153721_008_2f89.jpg]](https://cdni.pornpics.de/1280/1/306/69153721/69153721_008_2f89.jpg)
तभी सिद्धार्थ ने मेरे हाथ को पकड़ कर अपने लिंग पर रखते हुए कहा- दीदी, क्या हम सारी रात ऐसे ही खड़े एक दूसरे को देखते रहेंगे? अब आप जल्दी से पारस्परिक हस्त-मैथुन का श्री गणेश तो कर दीजिये।
क्योंकि मैंने अपने जीवन में पहली बार किसी पुरुष के लिंग को हाथ लगाया था इसलिये उसका स्पर्श भी मुझे बहुत ही अजीब लग रहा था।
![[Image: 50355827_022_b0dd.jpg]](https://cdni.pornpics.de/1280/7/354/50355827/50355827_022_b0dd.jpg)
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
