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चचेरी बहन की रजाई
#82
(06-06-2022, 03:55 PM)neerathemall Wrote:
नदी किनारे ममेरी बहन की चूत चुदाई

इस कहानी की शुरूआत मेरे मामा के घर से हुई थी. मेरे मामा गांव में रहते थे. मेरे मामा गांव में खेती करते हैं और वो खरबूज और तरबूज की खेती भी करते थे.
गांव में घर के पास ही एक नदी थी, जो घर से 5 मिनट की दूरी पर थी.
उस समय मैं अपने मामा के घर गया हुआ था.
हम लोग नदी में जाकर बहुत मस्ती करते थे, नदी में नहाते थे और नहाते समय साथ में नहाने वाली किसी भी लड़की के चूत में उंगली कर देते थे.
चूंकि हम लोग पानी के अन्दर जाकर नीचे नीचे तैरते थे और जिधर भी लड़की दिखती थी, उधर ही जाकर मजे लेने लगते थे.
एक दिन मैं, मेरी ममेरी बहन और उसकी छोटी बहन … हम तीनों ही नदी में नहाने गए थे.
नहाते वक़्त मैं अपने मामा की लड़की के पास ही नहा रहा था और जानबूझ कर उसके पास ही तैर रहा था.
मैं नहाते समय जानबूझ कर उसकी कमर और दूध पर हाथ लगा रहा था. वो भी ये सब करवा कर मजे ले रही थी.
फिर मैंने पानी के अन्दर से ही उसकी गांड में उंगली कर दी और हंसने लगा.
वो भी हंस दी.
अब वो भी मेरे बिल्कुल करीब आकर नहाने लगी थी, शायद वो और मजे लेना चाह रही थी.
उसने मेरे पास आकर पानी के अन्दर ही से मेरे लंड को अपने हाथ से पकड़ कर दबा दिया.
मैंने उसकी तरफ देखा, तो उसने आंख दबा दी.
अब मैं भी उसके पास जाकर उसको पकड़ने लगा और उसे अपनी गोद में उठाने के बहाने से अपना लंड उसकी गांड में अन्दर करने लगा.
जब वो हंस कर मचली तो मैंने उसके दूध दबा दिए.
वो मस्त होने लगी. उसकी नजरों में वासना दिखने लगी थी.
मुझे भी ये सब करने में मजा आ रहा था.
हम दोनों कुछ देर यूं ही एक दूसरे के लंड चूत से खेलते रहे और मस्ती करते रहे.
एक तरह से मेरी बहन मुझसे सैट हो गई थी.
उसी के साथ उसकी छोटी बहन भी मस्ती कर रही थी.
मैंने उसे भी पकड़ने के बहाने पकड़ना चाहा तो वो भी हंस कर मुझसे मस्ती करने लगी.
मगर मैं उसकी चूत या चूची नहीं दबा पाया था.
फिर नहाने के बाद नदी किनारे ही मामा ने तरबूज की खेती की थी, हम वहां गए.
वहां पर ही मामा ने रात में रुकने के लिए या आराम करने के लिए एक झोपड़ी बना रखी थी.
हम तीनों ही उस झोपड़ी में जाकर खेलने लगे.
मुझे शुरू से ही सेक्स का चस्का लगा हुआ था और मैं आज अपनी बहन की चूत चोदना चाह रहा था.
चूंकि वो मुझसे सैट हो गई थी तो मैंने खेलते खेलते ही अपना खड़ा लंड पैंट से निकाल लिया और उन दोनों को दिखाने लगा.
वो दोनों ही मेरा खड़ा लंड देख कर हंसने लगीं.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
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RE: चचेरी बहन की रजाई - by neerathemall - 06-06-2022, 03:55 PM



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