20-05-2022, 05:47 PM
अब मेरा कंट्रोल छूट गया और मैने मेरी चचेरी बहन की गोरी – गोरी गांड को दोनो हाथो से फैला कर अपना मुह घुसा दिया और कुत्ते की तरह बहन की गांड का छेद चाटने लगा, गोरी – गोरी गांड को गीली कर उसमे उंगली डाल कर अपनी उंगलिया चाटने लगा, क्या नशीली बदबू थी बहन के गांड के छेद की.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.