28-03-2022, 02:52 PM
(This post was last modified: 28-03-2022, 05:08 PM by Hot_Guy. Edited 2 times in total. Edited 2 times in total.)
PART-3
आज संडे का दिन था और कालेज की छुट्टी थी.
सारे स्टूडेंट्स आज अपने अपने हॉस्टल के कमरों में आराम और मौज़ मस्ती कर रहे थे
कालेज काफी बड़ी जगह में बना हुआ था और सभी स्टूडेंट्स को अलग अलग रूम मिला हुआ था
अनुराग अपने हॉस्टल के रूम में बैठा हुआ अपने हेड बॉय बनने के बाद की उन बातों के बारे में सोच रहा था जो कल बाकी से सीनियर सेमेस्टर्स के हेड बॉयज ने उसे बताई थीं.
अपनी बारहवीं क्लास में सबसे ज्यादा मार्क्स लाने की वजह से उसे इस कालेज में हेड बॉय भी बना दिया जाएगा, यह उसे कालेज में एडमिशन लेने से पहले नहीं पता था -लेकिन कालेज में अब वह अगले 5 सालों तक अपनी इस पोज़िशन का फायदा उठाने जा रहा था क्योंकि जो हेड बॉय एक बार बन जाता है, अगले सालों में अगले सेमेस्टर का हेड बॉय भी उसी को बनाया जाता है -इस तरह से जो लड़का एक बार हेड बॉय बन जाए उसकी पूरे कोर्स में अगले पांच सालों तक मौज़ रहती है
अनुराग यह सब सोच ही रहा था की उसके रूम के दरवाज़े पर किसी ने दस्तक दी. उसने अपने मोबाइल में समय देखा-सुबह के ग्यारह बजे थे. अनुराग अपनी कुर्सी से उठा और दरवाज़ा खोल दिया.
दरवाज़े पर दो बेहद खूबसूरत लडकियां खड़ी हुई थीं जिन्हे अनुराग ने पहले कभी नहीं देखा था और उन्हें जानता भी नहीं था
लडकियां इतनी खूबसूरत, हॉट और सेक्सी थीं की उन्हें देखते ही अनुराग के पायजामे में टेंट बन गया था -लड़कियों ने स्लीवलेस टॉप और बेहद छोटा सा टाइट निक्कर पहना हुआ था जिसमे उनकी केले जैसी चिकनी जाँघे एकदम साफ़ दिख रही थीं. टॉप और निक्कर के बीच में भी जो गैप था उसमे से उन दोनों का चिकना पेट और नाभि साफ़ दिख रही थी. दोनों ने अपने अपने हाथ में मोबाइल फ़ोन के अलावा एक एक डायरी भी पकड़ी हुई थी.
अनुराग इससे पहले कि उन लड़कियों से कुछ पूछता, उन दोनों ने खुद ही अपना परिचय देना शुरू कर दिया
पहली लड़की : सर मेरा नाम गीतिका है. मैं थर्ड सेमेस्टर की स्टूडेंट हूँ
दूसरी लड़की : सर मेरा नाम सोनाली है-मैं फोर्थ सेमेस्टर की स्टूडेंट हूँ. हम दोनों को आपसे कुछ बात करनी है-अगर आप परमिशन दें तो हम आपके रूम में बैठकर कुछ बातचीत करना चाहती हैं
अनुराग ने दोनों को अंदर बुला लिया और दरवाज़ा बंद करके रूम के अंदर आ गया
गीतिका और सोनाली को उसने कुर्सी पर बैठने के लिए कहा और खुद अपने बिस्तर पर बैठ गया और बोला : तुम दोनों मुझसे सीनियर हो और तीसरे और चौथे सेमेस्टर की स्टूडेंट हो -मैं तो अभी यहां नया नया आया हूँ और पहले सेमेस्टर में हूँ-फिर तुम लोग मुझे "सर" क्यों कह रही हो ?
गीतिका : सर आप हेड बॉय हैं इस कालेज के -इसलिए हेड बॉयज को पूरे रेस्पेक्ट के साथ "सर" कहकर ही बुलाया जाता है
सोनाली ( और थोड़ा मक्खन लगाए हुए ) : सर आपके पास बहुत ज्यादा "पावर" है -जिसके पास पावर हो, उसका रेस्पेक्ट तो सबको करना ही पड़ता है
अनुराग का लण्ड उसके पायजामे में लगातर बड़ा होता जा रहा था और वह अपने टेंट को एडजस्ट भी नहीं कर पा रहा था
अनुराग : ठीक है. अब बताओ, मुझसे तुम लोगों को क्या बात करनी है ?
गीतिका : सर हम दोनों को लेवल-1 की सजा मिली है और उसके 3 दिन कल मंडे को ख़त्म हो रहे हैं
अनुराग : ठीक है कल ऑफिस में जाकर अपना पनिशमेंट ले लो - मेरे पास क्यों आयी हो-अपने अपने सेमेस्टर के हेड बॉय के पास जाकर अपनी सजा क्यों नहीं पूरी करती हो ?
सोनाली : सर थर्ड और फोर्थ सेमेस्टर के हेड बॉय अभिनव और नितिन सर तो बहुत सख्त हैं-सब लडकियां उनसे सजा लेते हुए बहुत डरती हैं
गीतिका : और सर, ऑफिस में जाकर सजा तो सिर्फ पहले सेमस्टर के स्टूडेंट ही लेते हैं जिन्हे कुछ पता नहीं होता है-पुराने स्टूडेंट्स तो इसी तरह हेड बॉय के रूम में जाकर ही अपनी सजा पूरी कर लेते हैं
अनुराग : इसका मतलब यह हुआ कि तुम दोनों यह चाहती हो कि तुम्हारी सजा मैं यहां इसी समय निपटा दूँ ?
गीतिका : जी सर, आपकी बहुत मेहरबानी होगी -हम अपनी डायरी साथ लेकर आयी हैं -और सर प्लीज़ हमारी स्पैंकिंग की सजा को माफ़ भी कर दें -उसके बदले में आप जो कहेंगे वह हम करने के लिए तैयार हैं
दोनों अपनी अपनी डायरी अनुराग को खोलकर दिखाने लगीं
अनुराग ने दोनों की डायरी देखी-दोनों को लेवल-1 की सजा क्लास में आपस में बातचीत करने और पढाई पर ध्यान न देने के लिए दी गयी थी
अनुराग अब तक यह समझ चुका था कि यह दोनों लडकियां यहां इसलिए आयी हैं क्योंकि इन्हे लग रहा है कि फर्स्ट सेमेस्टर का नया नया हेड बॉय इन्हे थोड़ी नरम सजा देगा और इसलिए यह कपडे भी बहुत नाम मात्र के ही पहनकर आयी है -इसका यह भी मतलब है कि यह दोनों अपनी स्पैंकिंग की सजा माफ़ कराने के लिए सब कुछ करने के लिए पूरी तरह तैयार हैं
अनुराग भी अब इन दोनों लड़कियों से मस्ती लेने के मूड में आ गया था. उसने अपने हाथ से अपने पायजामे में बने हुए टेंट को एडजस्ट किया और बोला : ठीक है तुम दोनों अपने अपने कपडे उतारो और अपने अपने हाथ ऊपर करके खड़ी हो जाओ
सोनाली : सर हम दोनों तो पहले से ही इतने कम कपडे पहनकर आयी हैं -आप सारे कपडे क्यों उतरवा रहे हैं
अनुराग ( सख्त आवाज़ में ) : मैं जो कह रहा हूँ, उसे करती जाओ वरना यहां से चली जाओ और कल ऑफिस में आकर मिलना. मुझे तुम्हारा पूरा खूबसूरत और सेक्सी बदन देखना है
गीतिका : अरे नहीं सर, हम आपको गुस्सा थोड़ी करना चाहते हैं -जो आप कहेंगे हम दोनों वही करेंगी
यह कहकर दोनों ने अपने अपने कपडे उतारने शुरू कर दिए
दोनों ने अपने अपने टॉप और निक्कर उतार फेंके थे
अनुराग : अपनी ब्रा और पैंटी भी उतारो
दोनों ने एक दुसरे की तरफ देखते हुए अपनी ब्रा और पैंटी भी उतार डाली
अब तुम दोनों अपने दोनों हाथ ऊपर उठाकर खड़ी हो जाओ
दोनों अब पूरी तरह निर्वस्त्र खड़ी थीं और उनके हाथ ऊपर की तरफ उठे हुए थे
अनुराग बिस्तर से उठा और सोनाली के पीछे जाकर उसके बदन से चिपककर खड़ा हो गया और अपने दोनों हाथों को आगे की तरफ ले जाते हुए उसके मक्खन मलाई जैसे मम्मों को पकड़कर दबाने सहलाने लगा -उसका पायजामे में खड़ा लण्ड अब सोनाली के मस्त मस्त नितम्बों की गर्मी महसूस कर रहा था -अनुराग अपने चेहरे को सोनाली के खूबसूरत चेहरे पर साइड से रगड़ रगड़ कर उसकी गर्दन और गालों पर चुम्बनों की बरसात कर रहा था -कुछ समय बाद अनुराग ने अपना पायजामा खोलकर एक तरफ कर दिया और अपनी टी शर्ट भी उतार फेंकी-उसके शरीर पर अब सिर्फ अंडरवियर ही बचा था -उसने पलटकर सोनाली को अपनी तरफ किया और उसके रसीले होंठों को अपने होंठों की गिरफ्त में लेकर चूमने-चूसने लगा-सोनाली अनुराग की गिरफ्त में लगातार कसमसा रही थी -अनुराग का खड़ा लण्ड अब सोनाली के चिकने योनि प्रदेश पर रगड़ खा खा कर और भी सख्त होता जा रहा था -सोनाली के मस्त मम्मे अनुराग के सीने से दबे हुए थे और उसे भरपूर मज़ा दे रहे थे -अचानक उसने सोनाली के होंठों पर से अपने मुंह को हटा लिया और सोनाली के मम्मों को अपने मुंह में लेकर चूसने लगा.
गीतिका यह सब कुछ खड़ी खड़ी देख रही थी और उसकी अपनी योनि भी यह सब देखकर अब तक पूरी तरह गीली हो चुकी थी
अनुराग ने काफी देर तक सोनाली के मस्त और मक्खन मलाई जैसे मम्मों को एक एक करके बारी बारी से चूसा और फिर उससे बोला : अब नीचे घुटनों के बल बैठो और मेरा लण्ड चूसो
शेष अगले भाग में
आज संडे का दिन था और कालेज की छुट्टी थी.
सारे स्टूडेंट्स आज अपने अपने हॉस्टल के कमरों में आराम और मौज़ मस्ती कर रहे थे
कालेज काफी बड़ी जगह में बना हुआ था और सभी स्टूडेंट्स को अलग अलग रूम मिला हुआ था
अनुराग अपने हॉस्टल के रूम में बैठा हुआ अपने हेड बॉय बनने के बाद की उन बातों के बारे में सोच रहा था जो कल बाकी से सीनियर सेमेस्टर्स के हेड बॉयज ने उसे बताई थीं.
अपनी बारहवीं क्लास में सबसे ज्यादा मार्क्स लाने की वजह से उसे इस कालेज में हेड बॉय भी बना दिया जाएगा, यह उसे कालेज में एडमिशन लेने से पहले नहीं पता था -लेकिन कालेज में अब वह अगले 5 सालों तक अपनी इस पोज़िशन का फायदा उठाने जा रहा था क्योंकि जो हेड बॉय एक बार बन जाता है, अगले सालों में अगले सेमेस्टर का हेड बॉय भी उसी को बनाया जाता है -इस तरह से जो लड़का एक बार हेड बॉय बन जाए उसकी पूरे कोर्स में अगले पांच सालों तक मौज़ रहती है
अनुराग यह सब सोच ही रहा था की उसके रूम के दरवाज़े पर किसी ने दस्तक दी. उसने अपने मोबाइल में समय देखा-सुबह के ग्यारह बजे थे. अनुराग अपनी कुर्सी से उठा और दरवाज़ा खोल दिया.
दरवाज़े पर दो बेहद खूबसूरत लडकियां खड़ी हुई थीं जिन्हे अनुराग ने पहले कभी नहीं देखा था और उन्हें जानता भी नहीं था
लडकियां इतनी खूबसूरत, हॉट और सेक्सी थीं की उन्हें देखते ही अनुराग के पायजामे में टेंट बन गया था -लड़कियों ने स्लीवलेस टॉप और बेहद छोटा सा टाइट निक्कर पहना हुआ था जिसमे उनकी केले जैसी चिकनी जाँघे एकदम साफ़ दिख रही थीं. टॉप और निक्कर के बीच में भी जो गैप था उसमे से उन दोनों का चिकना पेट और नाभि साफ़ दिख रही थी. दोनों ने अपने अपने हाथ में मोबाइल फ़ोन के अलावा एक एक डायरी भी पकड़ी हुई थी.
अनुराग इससे पहले कि उन लड़कियों से कुछ पूछता, उन दोनों ने खुद ही अपना परिचय देना शुरू कर दिया
पहली लड़की : सर मेरा नाम गीतिका है. मैं थर्ड सेमेस्टर की स्टूडेंट हूँ
दूसरी लड़की : सर मेरा नाम सोनाली है-मैं फोर्थ सेमेस्टर की स्टूडेंट हूँ. हम दोनों को आपसे कुछ बात करनी है-अगर आप परमिशन दें तो हम आपके रूम में बैठकर कुछ बातचीत करना चाहती हैं
अनुराग ने दोनों को अंदर बुला लिया और दरवाज़ा बंद करके रूम के अंदर आ गया
गीतिका और सोनाली को उसने कुर्सी पर बैठने के लिए कहा और खुद अपने बिस्तर पर बैठ गया और बोला : तुम दोनों मुझसे सीनियर हो और तीसरे और चौथे सेमेस्टर की स्टूडेंट हो -मैं तो अभी यहां नया नया आया हूँ और पहले सेमेस्टर में हूँ-फिर तुम लोग मुझे "सर" क्यों कह रही हो ?
गीतिका : सर आप हेड बॉय हैं इस कालेज के -इसलिए हेड बॉयज को पूरे रेस्पेक्ट के साथ "सर" कहकर ही बुलाया जाता है
सोनाली ( और थोड़ा मक्खन लगाए हुए ) : सर आपके पास बहुत ज्यादा "पावर" है -जिसके पास पावर हो, उसका रेस्पेक्ट तो सबको करना ही पड़ता है
अनुराग का लण्ड उसके पायजामे में लगातर बड़ा होता जा रहा था और वह अपने टेंट को एडजस्ट भी नहीं कर पा रहा था
अनुराग : ठीक है. अब बताओ, मुझसे तुम लोगों को क्या बात करनी है ?
गीतिका : सर हम दोनों को लेवल-1 की सजा मिली है और उसके 3 दिन कल मंडे को ख़त्म हो रहे हैं
अनुराग : ठीक है कल ऑफिस में जाकर अपना पनिशमेंट ले लो - मेरे पास क्यों आयी हो-अपने अपने सेमेस्टर के हेड बॉय के पास जाकर अपनी सजा क्यों नहीं पूरी करती हो ?
सोनाली : सर थर्ड और फोर्थ सेमेस्टर के हेड बॉय अभिनव और नितिन सर तो बहुत सख्त हैं-सब लडकियां उनसे सजा लेते हुए बहुत डरती हैं
गीतिका : और सर, ऑफिस में जाकर सजा तो सिर्फ पहले सेमस्टर के स्टूडेंट ही लेते हैं जिन्हे कुछ पता नहीं होता है-पुराने स्टूडेंट्स तो इसी तरह हेड बॉय के रूम में जाकर ही अपनी सजा पूरी कर लेते हैं
अनुराग : इसका मतलब यह हुआ कि तुम दोनों यह चाहती हो कि तुम्हारी सजा मैं यहां इसी समय निपटा दूँ ?
गीतिका : जी सर, आपकी बहुत मेहरबानी होगी -हम अपनी डायरी साथ लेकर आयी हैं -और सर प्लीज़ हमारी स्पैंकिंग की सजा को माफ़ भी कर दें -उसके बदले में आप जो कहेंगे वह हम करने के लिए तैयार हैं
दोनों अपनी अपनी डायरी अनुराग को खोलकर दिखाने लगीं
अनुराग ने दोनों की डायरी देखी-दोनों को लेवल-1 की सजा क्लास में आपस में बातचीत करने और पढाई पर ध्यान न देने के लिए दी गयी थी
अनुराग अब तक यह समझ चुका था कि यह दोनों लडकियां यहां इसलिए आयी हैं क्योंकि इन्हे लग रहा है कि फर्स्ट सेमेस्टर का नया नया हेड बॉय इन्हे थोड़ी नरम सजा देगा और इसलिए यह कपडे भी बहुत नाम मात्र के ही पहनकर आयी है -इसका यह भी मतलब है कि यह दोनों अपनी स्पैंकिंग की सजा माफ़ कराने के लिए सब कुछ करने के लिए पूरी तरह तैयार हैं
अनुराग भी अब इन दोनों लड़कियों से मस्ती लेने के मूड में आ गया था. उसने अपने हाथ से अपने पायजामे में बने हुए टेंट को एडजस्ट किया और बोला : ठीक है तुम दोनों अपने अपने कपडे उतारो और अपने अपने हाथ ऊपर करके खड़ी हो जाओ
सोनाली : सर हम दोनों तो पहले से ही इतने कम कपडे पहनकर आयी हैं -आप सारे कपडे क्यों उतरवा रहे हैं
अनुराग ( सख्त आवाज़ में ) : मैं जो कह रहा हूँ, उसे करती जाओ वरना यहां से चली जाओ और कल ऑफिस में आकर मिलना. मुझे तुम्हारा पूरा खूबसूरत और सेक्सी बदन देखना है
गीतिका : अरे नहीं सर, हम आपको गुस्सा थोड़ी करना चाहते हैं -जो आप कहेंगे हम दोनों वही करेंगी
यह कहकर दोनों ने अपने अपने कपडे उतारने शुरू कर दिए
दोनों ने अपने अपने टॉप और निक्कर उतार फेंके थे
अनुराग : अपनी ब्रा और पैंटी भी उतारो
दोनों ने एक दुसरे की तरफ देखते हुए अपनी ब्रा और पैंटी भी उतार डाली
अब तुम दोनों अपने दोनों हाथ ऊपर उठाकर खड़ी हो जाओ
दोनों अब पूरी तरह निर्वस्त्र खड़ी थीं और उनके हाथ ऊपर की तरफ उठे हुए थे
अनुराग बिस्तर से उठा और सोनाली के पीछे जाकर उसके बदन से चिपककर खड़ा हो गया और अपने दोनों हाथों को आगे की तरफ ले जाते हुए उसके मक्खन मलाई जैसे मम्मों को पकड़कर दबाने सहलाने लगा -उसका पायजामे में खड़ा लण्ड अब सोनाली के मस्त मस्त नितम्बों की गर्मी महसूस कर रहा था -अनुराग अपने चेहरे को सोनाली के खूबसूरत चेहरे पर साइड से रगड़ रगड़ कर उसकी गर्दन और गालों पर चुम्बनों की बरसात कर रहा था -कुछ समय बाद अनुराग ने अपना पायजामा खोलकर एक तरफ कर दिया और अपनी टी शर्ट भी उतार फेंकी-उसके शरीर पर अब सिर्फ अंडरवियर ही बचा था -उसने पलटकर सोनाली को अपनी तरफ किया और उसके रसीले होंठों को अपने होंठों की गिरफ्त में लेकर चूमने-चूसने लगा-सोनाली अनुराग की गिरफ्त में लगातार कसमसा रही थी -अनुराग का खड़ा लण्ड अब सोनाली के चिकने योनि प्रदेश पर रगड़ खा खा कर और भी सख्त होता जा रहा था -सोनाली के मस्त मम्मे अनुराग के सीने से दबे हुए थे और उसे भरपूर मज़ा दे रहे थे -अचानक उसने सोनाली के होंठों पर से अपने मुंह को हटा लिया और सोनाली के मम्मों को अपने मुंह में लेकर चूसने लगा.
गीतिका यह सब कुछ खड़ी खड़ी देख रही थी और उसकी अपनी योनि भी यह सब देखकर अब तक पूरी तरह गीली हो चुकी थी
अनुराग ने काफी देर तक सोनाली के मस्त और मक्खन मलाई जैसे मम्मों को एक एक करके बारी बारी से चूसा और फिर उससे बोला : अब नीचे घुटनों के बल बैठो और मेरा लण्ड चूसो
शेष अगले भाग में
to my Thread containing Sex stories based on Humiliation, Blackmail & BDSM
हम भी दरिया हैं हमें अपना हुनर मालूम है
जिस तरफ जाएंगे खुद रास्ता बन जाएगा
हम भी दरिया हैं हमें अपना हुनर मालूम है
जिस तरफ जाएंगे खुद रास्ता बन जाएगा