13-05-2019, 09:08 PM
(This post was last modified: 13-05-2019, 09:09 PM by james5078. Edited 1 time in total. Edited 1 time in total.)
“प्यार का झरना -2”
अब आगे………………
मेने नाश्ता ख़तम किया और वो पानी का गिलास ले कर मुझे देने ही जा रही थी की उसका हाथ मेरे हाथ से टकरा गया और पानी टेबल पर गिर कर सीधा मेरे पेंट के ऊपर से मेरे लंड को नहला दिया
वो तुरंत नेपकिन लेकर मेरे पेंट के ऊपर का पानी साफ़ करने लगी काजल का हाथ पेंट पर महसूस होते ही मेरा लंड ताव मे आ गया और उसके विकराल रूप मे आने लगा. काजल नै मेरे लंड को महसूस होते ही उसने हाथ हटा दिया और शर्मा कर दूसरी और भाग गई. में बहार आया तो वो मेरी आंख मै आंख नहीं मिला पा रही थी
मेरा साला और ससुरजी टिफिन लेकर फैक्ट्री के लिये निकल गये थे और दोनो माँ बेटी और काजल बेठ कर गप्पे मार रहे थे और में एकेला बैठा बैठा बोर हो कर टीवी देखने लगा.
दोपहर का खाना खा कर काजल और दोनों माँ बेटी नै बाजार मे जाकर शॉपिंग का प्लान बनाया पर काजल - मुझे तो कुछ लेना नहीं हे इसलिये आप दोनों ही चले जाओ
मेरी वाइफ और सासुजी बाजार जाने निकल गई. में और काजल टीवी देख रहे थे. थोड़ी देर बाद काजल उठी और बाहर से सूखे कपडे लेकर आए और मुस्कुराकर ऊपर चली गई.
मेरी आंख कब लग गई पता भी नहीं चला जब नींद खुली तो देखा की आधे घंटे से जयादा हो गया पर काजल अभी भी नीचे नहीं आई तो मेने ऊपर जाकर देखनै का सोचा.
में चुपचाप सीढ़ियों से ऊपर जाने लगा देखा तो रूम का दरवाजा थोड़ा खुला हुवा था मेने सोचा काजल सो गई होगी पर नजदीक जाकर देखा तो वो मोबाइल मे कुछ देख रही थी दूसरा हाथ उसकी लेंगिस के ऊपर था.
मेने थोड़ी देर रुक कर देखा तो उसकी आंखे बंद हो रही थी पर अभी भी वो मोबाइल मे कुछ देख रही थी. रूम का दरवाज़ा थोड़ा खोल कर मे सीधा उसके सामने खड़ा हो गया उसकी आंखे अभी भी बंद थी थोड़ी देर रुक कर मे काजल के नजदीक गया और मोबाइल मे देखने लगा तो कल रात मेरी जानू ने जो फोटो खींची थी वही दिख रही थी.
मेरे मुँह से एक कातिल मुस्कान निकल गई और मोबाइल उसके हाथ से ले लिया. मोबाइल हाथ में से जाते ही उसका ध्यान भंग हुवा. काजल बोल रही थी मोबाइल देने के लिये पर में उसको नहीं दे रहा था उसी खींचातानी मे वो मेरे ऊपर गिर गई और मेरे सामने उसका चेहरा आ गया.
में तो मोबाइल में उसके फोटो देखनै में ही व्यस्त था एक बार फिर उसने मोबाइल खींचने की कोशिश की पर नाकामयाब रही.
मेरे मुँह मे से निकल गया "क्या मस्त फिगर है" और वो शर्मा कर भागने लगी पर मेने उसका हाथ पकड़ लिया और वो वापस मेरे ऊपर आगई हम दोनों मेसै कोई कुछ नहीं बोल रहा था. बस एकदूसरे को देख रहे थे. थोड़ी देर बाद मेने मेरे होठ काजल के होठ के ऊपर लगा दिये और उसके होठो का रस पीने लगा
अब मुझसे बर्दास्त नहीं हो रहा था मेने काजल को मेरी बाहो मे भर लिया और उसकी नरम होठो को चूसने लगा. हमे किश करते हुई अभी दस मिनट से ज्यादा हो गया था पर काजल अभी भी मुझसे छूटने की कोशिश कर रही थी
धीरे धीरे काजल का विरोध भी काफी हद तक कम हो गया था. अब मेने आगे बढ़ने की सोची और फिर मेरा एक हाथ उसकी एक चूची पर रख दिया और धीरे धीरे उसकी चूची को सलवार के ऊपर से ही दबाने लगा.
मुझे काजल की गरम सांसे महसूस हो रही थी वो अब मेरा विरोध भी नहीं कर रही थी. थोड़ी देर बाद मेने काजल को साइड मे लिटा दिया. मेने उसकी कुर्ती के आगे के दो बटन खोल दिये और काजल के सिने पर मेरा हाथ फिराने लगा.
मे काजल के गले को चूम रहा था तो कभी उसके कान को चुम रहा था वो बार बार मना कर रही थी पर मे कहा रुकनेवाला था धीरे धीरे करके कुर्ती के बाकी बचे बटन भी खोल दिए अब मुझे काजल की ब्रा साफ़ दिख रही थी.
काजल ने अभी मेने जो ब्रा और पेंटी लाए थी वही पहनी हुई थी ये देख कर मेरा लंड भी फड़फड़ाने लगा और मेरी पेंट फाड्कर बहार आने के लिए मचलने लगा. काजल की दोनों चूची अभी भी ब्रा के अंदर थी, मेने उसकी कुर्ती का कोलर को साइड मे किया और दोनों चूची को ब्रा समेत बहार निकाल दिया. में उसकी चूची देख कर इतना ही बोल पाया "वूऊऊ क्या मस्त चूची है लगता है उपरवाले ने बहोत प्यार से इसे बनाया है"
इतना सुनते ही काजल की आंख शर्म से बंध हो गई और फिर वो बोली प्लीज ननदोईजी छोड़ दो मुझे. कोई देख लेगा तो बहोत बदनामी होगी हमारी पर में तो बेशर्मो की तरह काजल को देखता ही रहा.
मेने काजल को पूछा कैसी लगी मेरी चॉइस... वो शर्मा कर आँख बंध करके बोली आप बड़े बेशर्म हो मेरे वापस पूछने पर जवाब दिया आप अपनी मैडम से ही पूछ लेना.
मे बेशरम बनते हुई वापस बोला, मेरी लाए ब्रा तेरी ननद ने थोड़ी पहनी हे की मे उसे पुछू. जिसने पहनी हे उसी से ही पूछुंगा ना. इतना बोलकर में उसकी दोनों चूची के बीच की जगह पर चूमने लगा और वो वापस मना करने लगी पर इस बार मे चूमते चूमते एक हाथ से काजल की चूची को भी दबाने लगा और दूसरे हाथ से उसकी कमर को सहला रहा था.
काजल अभी भी मेरा साथ नहीं दे रही थी मेने वापस उसको पूछा मुझे जब तक जवाब नहीं मिले गा में ऐसे ही तुमको परेशांन करुगा तो फाइनली उसने जवाब दिया काश मेरा पति भी कभी मेरे लिये ऐसी ब्रा और पेंटी लाता. मेने बोला ऐसे नहीं तुमको खुलकर बताना पड़ेगा तो फिर उसने जवाब दिया की "आप का चॉइस एकदम परफेक्ट है आप की लाए ब्रा पेंटी पहननै के बाद में कल से कितनी बार आईने में देख कर अपने आप को एक मॉडल जैसा महसूस कर रही हु"
इतना बोल कर वो अपनी आंखे बंध कर लेती है मेरे लिये यही काफी था में वापस काजल के होठ चूस नै लगता हु. इस बार वो मेरा साथ दे रही थी और वो भी मुझे लीप किश कर रही थी
मेने एक हाथ लेजाकर उसकी एक चूची पर रख दिया और धीरे धीरे दबाने लगा. थोड़ी देर मे मुझे काजल की गरम सांसे महसूस हुई. अब मे निचे की साइड मे बढ़ने लगा. में काजल की गर्दन पर किश करा रहा था साथ में मेरा एक हाथ अब उसकी ब्रा के अंदर था और घुंडी को हाथ में लेकर मसल रहा था.
जैसे ही मेने काजल की घुंडी को मसला उसके मुँह मेसै मादक सिसकारी निकल... अह्ह्ह... शी... अह्ह्ह....
अब मेने देर न करते हुई उसकी एक चूची ब्रा मेंसे बहार निकाली. काजल की दोनों चूची एक छोटे हिमालय पर्वत की तरह लग रही थी... एकदम सुन्दर और भरी हुई.... दोनों चूची के ऊपर काले रंग की घुंडी... एकदम क़यामत लग रही थी.
काजल की सांसे धोकनी की तरह चल रहीथी जिसकी वजह से दोनों चूची बहोत तेज़ी से ऊपरनीचे हो रहीथी
अब मेरा मुँह उसकी एक चूची पर था और दुसरा हाथ दूसरी चूची पर. इस तरह का दो तरफ़ा हमला वो सह नहीं पा रही थी. मे अभी भी उसकी चूची पर सिर्फ किश कर रहा था उसकी घुंडी को अभी तक मेरे होंठ से छुवा भी नहीं था. में काजल को थोड़ा तड़पा कर और गरम कर के उसके मुँह से बुलवाना चाह रहा था
अब काजल ने उसके पैर पटकना चालू कर दिया और मादक सिसकारी भी निकाल रही थी पर में अभी भी उसकी चूची को एक हाथ से दबा रहा था और दूसरी चूची की घुन्डी के इर्द गिर्द चूम रहा था.
मुझे काजल को तड़पाने मे मज़ा आ रहा था. मेने अब आगे बढ़ते हुई काजल कि कुर्ती निकाल दी अब काजल ऊपर से सिर्फ ब्रा मै थी धीरे धीरे मेने उसकी दोनों चूची को छोड़कर उसके सपाट पेट पर चूमते चूमते मे आगे बढ़ा और फिर काजल की नाभि के अंदर मेरी जीभ घुसा कर उसकी नाभि की चुसाई की.
वो सिर्फ इतना ही बोल पायी ओह्ह्ह ननदोयजी प्लीज.... और उसके बाद तो उसके मुँह से एक और लम्बी सिसकी निकल गई.... अह्ह्ह्ह शह्ह्ह्ह.........ओह्हहूउउ......
मे उसकी नाभि के इर्द गिर्द मेरी जीभ घुमा रहा था और काजल अब आउट ऑफ़ कण्ट्रोल हो रही थी पर मे आगे बढ़ा और नीचे जाने लगा अब मै काजल की लेंगिस तक पहोच गया मेने आगे बढ़ कर उसकी लेंगिस की इलास्टिक मे ऊँगली फसाकर काजल की लेंगिस को धीरे धीरे निकाल दी.
अब काजल मेरे सामने सिर्फ ब्रा और पैंटी मै थी उसकी दोनों आंखे अभी भी बंध थी और वो हाफ रही थी. मेरे लाए नई ब्रा और पेंटी सेट पहनकर काजल आज एक अप्सरा से भी ज्यादा खुबशुरत और सेक्सी लग रही थी
अब मे काजल के ऊपर आ कर वापस उसके होंठ चूसने लगा और एक हाथ से काजल की चूची को मसलने लगा और दूसरे हाथ पेंटी के ऊपर से काजल की चूत को सहलाने लगा.
मेरे तीन तरफ़ा हमले से काजल की हालत ख्रराब हो गई... काजल भी अब पूरे जोश मै आ चुकी थी और इतनी तेज़ सिसकी निकाल रही थी की मेरी भी हालत ख़राब हो गई.
मैंने आखरी हमला किया, काजल के होंठ को छोड़ कर मै उसकी ब्रा निकल दी, अब काजल ऊपर से बिलकुल नंगी थी और उसकी तेज़ धड़कनो की वजह से दोनों चूची बहोत तेज़ी से ऊपर नीचे हो रही थी
आज मेरा ख्वाब पूरा होने जा रहा था जिस चूची को में खवाबो देखा करता था आज वो साक्षात् मेरे सामने थी.
काजल की एक चूची पर हाथ रखा और दूसरी की निप्पल को मुँह मै भर लिया, काजल की चूची इतनी बड़ी थी की मेरा पूरा मुँह भर गया...जैसे ही मेने घुण्डी को चूसना शरू किया, काजल के मुँह से एक तेज और मादक सिसकारी निकली. अह्हह्ह्ह्ह...................ओह्ह्ह्हह्हह...........शह्ह्ह्ह........
और वो इतनी तेज़ थी की अगर कोई नीचे होता तो आवाज़ सुनकर ऊपर आजाता.
मै एक चूची को छोड़कर दूसरी चूची पर टूट पड़ा और दूसरे हाथ से काजल की पेंटी को निकाली. अब काजल मेरे सामने मादरजात नंगी बेड पर पड़ी थी, मेरा हाथ अब काजल की चूत पर घूम रहा था और वो अब आउट ऑफ़ कण्ट्रोल हो रही थी. मै धीरे धीरे काजल की चूत की और बढ़ रहा था
मेने हल्के से काजल की चूत का दाना मसल दिया उसी के साथ उसके मुँह से और एक तेज़ सिसकी निकल गई......ओह्ह्ह्ह माआआ.... शह्ह्ह्हह्ह्ह्ह.... अह्ह्ह्हह्हह... ओह्ह्ह्हह्ह...........
मेरा ये खेल चालू किये अभी आधे घंटे से जायदा हो गया था... अब मेने देर ना करते हुई काजल की चूत के ऊपर ऊँगली घुमाने लगा. काजल की चूत बहोत ही पानी छोड़ रही थी,
काजल की चूत का पानी इतना ज्यादा था की उसकी जांघो से बह कर चद्दर को भी भिगो दिया काजल से अब रहा नहीं जा रहा था वो अपने हाथ पैर पटक रही थी तो कभी चद्दर को अपनी मुट्ठी में लेकर खींच रही थी. काजल की सिसकिया तो बढ़ती ही जा रहीथी.
थोड़ी देर बाद मेने एक ऊँगली उसकी चूत की फांको मै डाली और धीरे धीरे ऊँगली को अंदर बहार करने लगा. काजल कुछ बोल नहीं रही थी पर मुझे लग रहा था की अब टाइम आ गया है पर मै अभी भी वेट कर रहा था और मुझे काजल के मुँह से सुन ना था.
मेने काजल के पैर फैलाये और उस के बीच में आ गया फिर उसकी चूत पर मेरी जीभ रख दी और में काजल कि अमृतरस पीने लगा. मेरी जीभ से काजल के चूत के दाने को हलकी सी मसाज करनी लगा और थोड़ी देर बाद मेने दाने को मेरे मुँह में लिया और चूसने लगा.
अब मेरी जीभ से काजल की चूत की चुदाई करने लगा, जैसे ही मेरी जीभ चूत के अंदर गई सिसकिया तेज़ हो गई और उसके मुँह मेंसे अह्ह्ह्ह ओह्ह्ह्हह हीईई जैसी आवाज़े निकल रही थी.
अब काजल के दोनों हाथ मेरे सर के ऊपर थे और दोनों हाथो से मेरा सर दबा रही थी.
मे भी मेरी जीभ की नोक काजल की चूत मै और गहराई तक डालने लगा और दोनों हाथो से काजल की चूची को बेदर्दी से दबानै लगा. मेरा ऐसा करने से अब काजल नै दोनों पैर मेरे सर पर दबा दिये और एक तेज़ सिसकी निकली... अह्ह्ह्ह......शह्ह्ह्ह... ओह्ह्ह्हह... हीईईई......अह्ह्ह्ह ओह्ह्ह्ह.........करते हुई जड़ गई, और तब तक नहीं छोड़ा जब तक चूत कि पूरा रस निकल ना गया.....
काजल आंखे बंध करके अभी भी हाफ रही थी अब मेने अपने कपड़े निकाले और काजल के ऊपर आ गया. मेरा लंड अब काजल की चूत को छू रहा था....में तो चूत मै लंड डालने के लिये तड़प रहा था पर में काजल के मुँह से सुनना चाहता था....
थोड़ी देर मेने लंड से चूत के ऊपर घिसाई की पर लंड पर चूत मै नहीं डाला.... काजल से बर्दाश्त नहीं हो रहा था पर फिर भी अपने दोनों होंठ भींच कर अपने आप को कण्ट्रोल कर रही थी और मै सुकून से मज़ा ले रहा था.
मेने लंड काजल की चूत पर से हटा दिया और जैसे की किसी नै उसका प्यारा खिलौना ले लिया. और चीखते हुई बोली डाल दो ना अब... में अब भी कुछ नहीं कर रहा था. मै काजल से पूछा क्या डालू. तो वो फिर से बोली प्लीज डाल दो ना मज़ाक मत करो. मै फिर से पूछा क्या डाल दू... गुस्से में आकर बोली तुम्हरा लंड मेरी चूत मै डाल दो……..
काजल इतना ही बोल पाई और चूत पर लंड सेट कर के मेने एक तेज़ शॉट मारा. मेरा ६ इंच कि लंड सीधा काजल की चूत मै सरक कर सीधा बच्चेदानी पर जा कर टकराया.
काजल के मुँह से और एक तेज़ सिसकी निकली... अह्ह्ह्ह ओह्ह्ह्हह शह्ह्ह्ह.... अब काजल मुझे मेरे नाम से बुला रही थी और बोल रही ओह्ह्ह्ह माआअ... मार डाला ओह्ह मेरे राजा अब चोद तेरी रानी को और तेज़ और तेज़... अह्ह्ह्ह ओह्ह्ह्ह शह्ह्ह्ह........
काजल की चूत मै मेने तेज़ तेज़ धके मरना चालू किया और उसी के साथ काजल की सिसकिया पूरे रूम मै गूंज नै लगी... मै काजल को बहोत बेदर्दी से चोद रहा था और उसकी दोनों चूची को भी मसल रहा था
काजल पसीने से पुरी भीग चुकी थी और उसकी सासे धोकनी की तरह चल रही थी... अब मेरे दिमाग मै एक खुराफाती आईडिया आया. अचानक मेने धके मरना बंध कर दिया... काजल की आंखे अभी भी बंध थी और बोल रही थी प्लीज चोदो ना मुझे....
तुम मेरी आँखों में आंखे डाल कर मेरा साथ दोगी तो ही मै चोदुँगा. मेरी बात सुन कर काजल नै ना में सर हिलाया. में भी अभी मेरा लंड ऐसे ही उसकी चूत मै डाल कर पड़ा था मै कुछ नहीं कर रहा था.
थोड़ी देर बाद काजल आँख खोल कर मुझे बोलती है जानू प्लीज चोदो ना अब नहीं सहा जाता... वो मेरी आँखों में देख रही थी और मेने वापस तेज़ी से काजल की चूत में धके मार ना चालू किया.
अब काजल उसकी नशीली आँखों से उसकी चुदाई होते दिख रही थी और उसके मूह से तेज़ सिसकी निकाल रही थी... अह्ह्ह....... ओह्ह्ह्ह मेरे राजा........ चोद तेरी रानी को....... अह्ह्ह्हह ओह्ह्ह्हह शह्ह्ह्ह..... और तेज़ मार..... तेरी रानी की चूत.... अह्ह्ह्ह निकल दे तेरी रानी कि पूरा पानी......
काजल की चूत मारते अभी १५ मिनट से जयादा टाइम हो चूका था अब फिर काजल के मुँह के एक्सप्रेशन बदल रहे थे... दस पन्द्र धक्को के बाद काजल फिर से चिल्लाई और मुझे कस कर अपने बाहो मै भर लिया.
अब मै भी तेज़ तेज़ धके मार रहा था और काजल भी मेरे साथ चीख रही थी. कुछ १५-२० तेज़ धक्को से काजल की हालत पतली हो गई.... मेरा भी अभी निकल नै वाला था... मेने काजल को पूछा कहा निकालू तो बोली मेरी चूत मै ही निकालो... मै तुम्हारे बच्चे की माँ बनना चाहती हु...
काजल के इतना बोलते ही मै एक ज़ोरदार शॉट मारा और चूत मै मेरा वीर्य निकलने लगा.. काजल की चूत मेरे वीर्य से भर गई... और उसके साथ ही काजल भी और एक बार मेरे साथ ही जड़ गई...
हम दोनों एक दूसरे आंख नहीं मिला पा रहे थे... काजल की आँखों मै देखा तो वो रो रही थी पर मेरे पूछने पर बोली कुछ नहीं आज पता चला मेरी ननद कितनी नसीब वाली है की आपके जैसा पति मिला है....आपके साथ बिताया ये एक एक पल में जिंदगी भर याद रखूगी....
में काजल के पास गया और वापस उसकी एक चूची को मुँह में लेकर चूसने लगा. काजल मना कर रही थी पर में कहा मान नै वाला थाकाजल बोली छोड़ो मुझे कोई आ जायेगा पर जैसे के मुझे कुछ सुनाई ही नहीं दे रहा था.
अचानक काजल ने मुझे धक्का मारा और में उसकी साइड में बेड पर गिर गया अब वो मेरे ऊपर आ गयी और मेरे ऊपर चढ़ गई
मुझे कुछ समज में नहीं आया की अचानक काजल को क्या हो गया.....
वो मुझे घुर रही थी काजल ने मेरी छाती पर चुम रही थी और फिर अचानक एक भूखी शेरनी की तरह वो सीधे मेरे लंड पर टूट पड़ी मेरे लंड को हाथ में लेकर ज़ोर से दबाया और फिर लंड के ऊपर ३-४ किस की उतना करते ही मेरे मुँह से हलकी सी सिसकी निकल गई...
फिर काजल ने मेरे लंड को मुँह में ले लिया और ज़ोर ज़ोर से चूसने लगी मेरी तो हालत ख़राब हो रही थी
मेरी तो बोलती ही बंध हो गई थी ... में तो न कुछ बोल नहीं पा रहा था सिर्फ काजल की चुसाई का मज़ा ले रहा था
करीब पांच मिनट की चुसाई के बाद मेने काजल का सर पकड़ा और मेरे लंड को उसके गले की गहराई तक पहुचाने लगा...मेने एक जोरदार सिसकी लेकर काजल के मुँह में ही जड़ने लगा. जब तक मेरा पूरा वीर्य काजल के गले के नीचे नहीं उतरा तब तक मेने मेरा लंड काजल के मुँह से बहार नहीं निकला.
काजल मेरा पूरा वीर्य पि गई और गीली जीभ से लंड को चाट चाट के पूरा साफ़ कर दिया. अब वो बाथरूम में गई और फिर कपड़े पहन कर नीचे चली गई.
करीब आधे घंटे बाद मेरी वाइफ और सासुजी भी मार्किट से वापस लौट आये.
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जल्दी जल्दी आप सब लोग अपने गंदे विचार मुझे रिप्लाय करो और आप सब को किसकी चुदाई करनी हे वो मुझे बताओ... और मेरी कहानी पढ़ने के बाद कितनो का पानी निकला येभी बताओ.
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अब आगे………………
मेने नाश्ता ख़तम किया और वो पानी का गिलास ले कर मुझे देने ही जा रही थी की उसका हाथ मेरे हाथ से टकरा गया और पानी टेबल पर गिर कर सीधा मेरे पेंट के ऊपर से मेरे लंड को नहला दिया
वो तुरंत नेपकिन लेकर मेरे पेंट के ऊपर का पानी साफ़ करने लगी काजल का हाथ पेंट पर महसूस होते ही मेरा लंड ताव मे आ गया और उसके विकराल रूप मे आने लगा. काजल नै मेरे लंड को महसूस होते ही उसने हाथ हटा दिया और शर्मा कर दूसरी और भाग गई. में बहार आया तो वो मेरी आंख मै आंख नहीं मिला पा रही थी
मेरा साला और ससुरजी टिफिन लेकर फैक्ट्री के लिये निकल गये थे और दोनो माँ बेटी और काजल बेठ कर गप्पे मार रहे थे और में एकेला बैठा बैठा बोर हो कर टीवी देखने लगा.
दोपहर का खाना खा कर काजल और दोनों माँ बेटी नै बाजार मे जाकर शॉपिंग का प्लान बनाया पर काजल - मुझे तो कुछ लेना नहीं हे इसलिये आप दोनों ही चले जाओ
मेरी वाइफ और सासुजी बाजार जाने निकल गई. में और काजल टीवी देख रहे थे. थोड़ी देर बाद काजल उठी और बाहर से सूखे कपडे लेकर आए और मुस्कुराकर ऊपर चली गई.
मेरी आंख कब लग गई पता भी नहीं चला जब नींद खुली तो देखा की आधे घंटे से जयादा हो गया पर काजल अभी भी नीचे नहीं आई तो मेने ऊपर जाकर देखनै का सोचा.
में चुपचाप सीढ़ियों से ऊपर जाने लगा देखा तो रूम का दरवाजा थोड़ा खुला हुवा था मेने सोचा काजल सो गई होगी पर नजदीक जाकर देखा तो वो मोबाइल मे कुछ देख रही थी दूसरा हाथ उसकी लेंगिस के ऊपर था.
मेने थोड़ी देर रुक कर देखा तो उसकी आंखे बंद हो रही थी पर अभी भी वो मोबाइल मे कुछ देख रही थी. रूम का दरवाज़ा थोड़ा खोल कर मे सीधा उसके सामने खड़ा हो गया उसकी आंखे अभी भी बंद थी थोड़ी देर रुक कर मे काजल के नजदीक गया और मोबाइल मे देखने लगा तो कल रात मेरी जानू ने जो फोटो खींची थी वही दिख रही थी.
मेरे मुँह से एक कातिल मुस्कान निकल गई और मोबाइल उसके हाथ से ले लिया. मोबाइल हाथ में से जाते ही उसका ध्यान भंग हुवा. काजल बोल रही थी मोबाइल देने के लिये पर में उसको नहीं दे रहा था उसी खींचातानी मे वो मेरे ऊपर गिर गई और मेरे सामने उसका चेहरा आ गया.
में तो मोबाइल में उसके फोटो देखनै में ही व्यस्त था एक बार फिर उसने मोबाइल खींचने की कोशिश की पर नाकामयाब रही.
मेरे मुँह मे से निकल गया "क्या मस्त फिगर है" और वो शर्मा कर भागने लगी पर मेने उसका हाथ पकड़ लिया और वो वापस मेरे ऊपर आगई हम दोनों मेसै कोई कुछ नहीं बोल रहा था. बस एकदूसरे को देख रहे थे. थोड़ी देर बाद मेने मेरे होठ काजल के होठ के ऊपर लगा दिये और उसके होठो का रस पीने लगा
अब मुझसे बर्दास्त नहीं हो रहा था मेने काजल को मेरी बाहो मे भर लिया और उसकी नरम होठो को चूसने लगा. हमे किश करते हुई अभी दस मिनट से ज्यादा हो गया था पर काजल अभी भी मुझसे छूटने की कोशिश कर रही थी
धीरे धीरे काजल का विरोध भी काफी हद तक कम हो गया था. अब मेने आगे बढ़ने की सोची और फिर मेरा एक हाथ उसकी एक चूची पर रख दिया और धीरे धीरे उसकी चूची को सलवार के ऊपर से ही दबाने लगा.
मुझे काजल की गरम सांसे महसूस हो रही थी वो अब मेरा विरोध भी नहीं कर रही थी. थोड़ी देर बाद मेने काजल को साइड मे लिटा दिया. मेने उसकी कुर्ती के आगे के दो बटन खोल दिये और काजल के सिने पर मेरा हाथ फिराने लगा.
मे काजल के गले को चूम रहा था तो कभी उसके कान को चुम रहा था वो बार बार मना कर रही थी पर मे कहा रुकनेवाला था धीरे धीरे करके कुर्ती के बाकी बचे बटन भी खोल दिए अब मुझे काजल की ब्रा साफ़ दिख रही थी.
काजल ने अभी मेने जो ब्रा और पेंटी लाए थी वही पहनी हुई थी ये देख कर मेरा लंड भी फड़फड़ाने लगा और मेरी पेंट फाड्कर बहार आने के लिए मचलने लगा. काजल की दोनों चूची अभी भी ब्रा के अंदर थी, मेने उसकी कुर्ती का कोलर को साइड मे किया और दोनों चूची को ब्रा समेत बहार निकाल दिया. में उसकी चूची देख कर इतना ही बोल पाया "वूऊऊ क्या मस्त चूची है लगता है उपरवाले ने बहोत प्यार से इसे बनाया है"
इतना सुनते ही काजल की आंख शर्म से बंध हो गई और फिर वो बोली प्लीज ननदोईजी छोड़ दो मुझे. कोई देख लेगा तो बहोत बदनामी होगी हमारी पर में तो बेशर्मो की तरह काजल को देखता ही रहा.
मेने काजल को पूछा कैसी लगी मेरी चॉइस... वो शर्मा कर आँख बंध करके बोली आप बड़े बेशर्म हो मेरे वापस पूछने पर जवाब दिया आप अपनी मैडम से ही पूछ लेना.
मे बेशरम बनते हुई वापस बोला, मेरी लाए ब्रा तेरी ननद ने थोड़ी पहनी हे की मे उसे पुछू. जिसने पहनी हे उसी से ही पूछुंगा ना. इतना बोलकर में उसकी दोनों चूची के बीच की जगह पर चूमने लगा और वो वापस मना करने लगी पर इस बार मे चूमते चूमते एक हाथ से काजल की चूची को भी दबाने लगा और दूसरे हाथ से उसकी कमर को सहला रहा था.
काजल अभी भी मेरा साथ नहीं दे रही थी मेने वापस उसको पूछा मुझे जब तक जवाब नहीं मिले गा में ऐसे ही तुमको परेशांन करुगा तो फाइनली उसने जवाब दिया काश मेरा पति भी कभी मेरे लिये ऐसी ब्रा और पेंटी लाता. मेने बोला ऐसे नहीं तुमको खुलकर बताना पड़ेगा तो फिर उसने जवाब दिया की "आप का चॉइस एकदम परफेक्ट है आप की लाए ब्रा पेंटी पहननै के बाद में कल से कितनी बार आईने में देख कर अपने आप को एक मॉडल जैसा महसूस कर रही हु"
इतना बोल कर वो अपनी आंखे बंध कर लेती है मेरे लिये यही काफी था में वापस काजल के होठ चूस नै लगता हु. इस बार वो मेरा साथ दे रही थी और वो भी मुझे लीप किश कर रही थी
मेने एक हाथ लेजाकर उसकी एक चूची पर रख दिया और धीरे धीरे दबाने लगा. थोड़ी देर मे मुझे काजल की गरम सांसे महसूस हुई. अब मे निचे की साइड मे बढ़ने लगा. में काजल की गर्दन पर किश करा रहा था साथ में मेरा एक हाथ अब उसकी ब्रा के अंदर था और घुंडी को हाथ में लेकर मसल रहा था.
जैसे ही मेने काजल की घुंडी को मसला उसके मुँह मेसै मादक सिसकारी निकल... अह्ह्ह... शी... अह्ह्ह....
अब मेने देर न करते हुई उसकी एक चूची ब्रा मेंसे बहार निकाली. काजल की दोनों चूची एक छोटे हिमालय पर्वत की तरह लग रही थी... एकदम सुन्दर और भरी हुई.... दोनों चूची के ऊपर काले रंग की घुंडी... एकदम क़यामत लग रही थी.
काजल की सांसे धोकनी की तरह चल रहीथी जिसकी वजह से दोनों चूची बहोत तेज़ी से ऊपरनीचे हो रहीथी
अब मेरा मुँह उसकी एक चूची पर था और दुसरा हाथ दूसरी चूची पर. इस तरह का दो तरफ़ा हमला वो सह नहीं पा रही थी. मे अभी भी उसकी चूची पर सिर्फ किश कर रहा था उसकी घुंडी को अभी तक मेरे होंठ से छुवा भी नहीं था. में काजल को थोड़ा तड़पा कर और गरम कर के उसके मुँह से बुलवाना चाह रहा था
अब काजल ने उसके पैर पटकना चालू कर दिया और मादक सिसकारी भी निकाल रही थी पर में अभी भी उसकी चूची को एक हाथ से दबा रहा था और दूसरी चूची की घुन्डी के इर्द गिर्द चूम रहा था.
मुझे काजल को तड़पाने मे मज़ा आ रहा था. मेने अब आगे बढ़ते हुई काजल कि कुर्ती निकाल दी अब काजल ऊपर से सिर्फ ब्रा मै थी धीरे धीरे मेने उसकी दोनों चूची को छोड़कर उसके सपाट पेट पर चूमते चूमते मे आगे बढ़ा और फिर काजल की नाभि के अंदर मेरी जीभ घुसा कर उसकी नाभि की चुसाई की.
वो सिर्फ इतना ही बोल पायी ओह्ह्ह ननदोयजी प्लीज.... और उसके बाद तो उसके मुँह से एक और लम्बी सिसकी निकल गई.... अह्ह्ह्ह शह्ह्ह्ह.........ओह्हहूउउ......
मे उसकी नाभि के इर्द गिर्द मेरी जीभ घुमा रहा था और काजल अब आउट ऑफ़ कण्ट्रोल हो रही थी पर मे आगे बढ़ा और नीचे जाने लगा अब मै काजल की लेंगिस तक पहोच गया मेने आगे बढ़ कर उसकी लेंगिस की इलास्टिक मे ऊँगली फसाकर काजल की लेंगिस को धीरे धीरे निकाल दी.
अब काजल मेरे सामने सिर्फ ब्रा और पैंटी मै थी उसकी दोनों आंखे अभी भी बंध थी और वो हाफ रही थी. मेरे लाए नई ब्रा और पेंटी सेट पहनकर काजल आज एक अप्सरा से भी ज्यादा खुबशुरत और सेक्सी लग रही थी
अब मे काजल के ऊपर आ कर वापस उसके होंठ चूसने लगा और एक हाथ से काजल की चूची को मसलने लगा और दूसरे हाथ पेंटी के ऊपर से काजल की चूत को सहलाने लगा.
मेरे तीन तरफ़ा हमले से काजल की हालत ख्रराब हो गई... काजल भी अब पूरे जोश मै आ चुकी थी और इतनी तेज़ सिसकी निकाल रही थी की मेरी भी हालत ख़राब हो गई.
मैंने आखरी हमला किया, काजल के होंठ को छोड़ कर मै उसकी ब्रा निकल दी, अब काजल ऊपर से बिलकुल नंगी थी और उसकी तेज़ धड़कनो की वजह से दोनों चूची बहोत तेज़ी से ऊपर नीचे हो रही थी
आज मेरा ख्वाब पूरा होने जा रहा था जिस चूची को में खवाबो देखा करता था आज वो साक्षात् मेरे सामने थी.
काजल की एक चूची पर हाथ रखा और दूसरी की निप्पल को मुँह मै भर लिया, काजल की चूची इतनी बड़ी थी की मेरा पूरा मुँह भर गया...जैसे ही मेने घुण्डी को चूसना शरू किया, काजल के मुँह से एक तेज और मादक सिसकारी निकली. अह्हह्ह्ह्ह...................ओह्ह्ह्हह्हह...........शह्ह्ह्ह........
और वो इतनी तेज़ थी की अगर कोई नीचे होता तो आवाज़ सुनकर ऊपर आजाता.
मै एक चूची को छोड़कर दूसरी चूची पर टूट पड़ा और दूसरे हाथ से काजल की पेंटी को निकाली. अब काजल मेरे सामने मादरजात नंगी बेड पर पड़ी थी, मेरा हाथ अब काजल की चूत पर घूम रहा था और वो अब आउट ऑफ़ कण्ट्रोल हो रही थी. मै धीरे धीरे काजल की चूत की और बढ़ रहा था
मेने हल्के से काजल की चूत का दाना मसल दिया उसी के साथ उसके मुँह से और एक तेज़ सिसकी निकल गई......ओह्ह्ह्ह माआआ.... शह्ह्ह्हह्ह्ह्ह.... अह्ह्ह्हह्हह... ओह्ह्ह्हह्ह...........
मेरा ये खेल चालू किये अभी आधे घंटे से जायदा हो गया था... अब मेने देर ना करते हुई काजल की चूत के ऊपर ऊँगली घुमाने लगा. काजल की चूत बहोत ही पानी छोड़ रही थी,
काजल की चूत का पानी इतना ज्यादा था की उसकी जांघो से बह कर चद्दर को भी भिगो दिया काजल से अब रहा नहीं जा रहा था वो अपने हाथ पैर पटक रही थी तो कभी चद्दर को अपनी मुट्ठी में लेकर खींच रही थी. काजल की सिसकिया तो बढ़ती ही जा रहीथी.
थोड़ी देर बाद मेने एक ऊँगली उसकी चूत की फांको मै डाली और धीरे धीरे ऊँगली को अंदर बहार करने लगा. काजल कुछ बोल नहीं रही थी पर मुझे लग रहा था की अब टाइम आ गया है पर मै अभी भी वेट कर रहा था और मुझे काजल के मुँह से सुन ना था.
मेने काजल के पैर फैलाये और उस के बीच में आ गया फिर उसकी चूत पर मेरी जीभ रख दी और में काजल कि अमृतरस पीने लगा. मेरी जीभ से काजल के चूत के दाने को हलकी सी मसाज करनी लगा और थोड़ी देर बाद मेने दाने को मेरे मुँह में लिया और चूसने लगा.
अब मेरी जीभ से काजल की चूत की चुदाई करने लगा, जैसे ही मेरी जीभ चूत के अंदर गई सिसकिया तेज़ हो गई और उसके मुँह मेंसे अह्ह्ह्ह ओह्ह्ह्हह हीईई जैसी आवाज़े निकल रही थी.
अब काजल के दोनों हाथ मेरे सर के ऊपर थे और दोनों हाथो से मेरा सर दबा रही थी.
मे भी मेरी जीभ की नोक काजल की चूत मै और गहराई तक डालने लगा और दोनों हाथो से काजल की चूची को बेदर्दी से दबानै लगा. मेरा ऐसा करने से अब काजल नै दोनों पैर मेरे सर पर दबा दिये और एक तेज़ सिसकी निकली... अह्ह्ह्ह......शह्ह्ह्ह... ओह्ह्ह्हह... हीईईई......अह्ह्ह्ह ओह्ह्ह्ह.........करते हुई जड़ गई, और तब तक नहीं छोड़ा जब तक चूत कि पूरा रस निकल ना गया.....
काजल आंखे बंध करके अभी भी हाफ रही थी अब मेने अपने कपड़े निकाले और काजल के ऊपर आ गया. मेरा लंड अब काजल की चूत को छू रहा था....में तो चूत मै लंड डालने के लिये तड़प रहा था पर में काजल के मुँह से सुनना चाहता था....
थोड़ी देर मेने लंड से चूत के ऊपर घिसाई की पर लंड पर चूत मै नहीं डाला.... काजल से बर्दाश्त नहीं हो रहा था पर फिर भी अपने दोनों होंठ भींच कर अपने आप को कण्ट्रोल कर रही थी और मै सुकून से मज़ा ले रहा था.
मेने लंड काजल की चूत पर से हटा दिया और जैसे की किसी नै उसका प्यारा खिलौना ले लिया. और चीखते हुई बोली डाल दो ना अब... में अब भी कुछ नहीं कर रहा था. मै काजल से पूछा क्या डालू. तो वो फिर से बोली प्लीज डाल दो ना मज़ाक मत करो. मै फिर से पूछा क्या डाल दू... गुस्से में आकर बोली तुम्हरा लंड मेरी चूत मै डाल दो……..
काजल इतना ही बोल पाई और चूत पर लंड सेट कर के मेने एक तेज़ शॉट मारा. मेरा ६ इंच कि लंड सीधा काजल की चूत मै सरक कर सीधा बच्चेदानी पर जा कर टकराया.
काजल के मुँह से और एक तेज़ सिसकी निकली... अह्ह्ह्ह ओह्ह्ह्हह शह्ह्ह्ह.... अब काजल मुझे मेरे नाम से बुला रही थी और बोल रही ओह्ह्ह्ह माआअ... मार डाला ओह्ह मेरे राजा अब चोद तेरी रानी को और तेज़ और तेज़... अह्ह्ह्ह ओह्ह्ह्ह शह्ह्ह्ह........
काजल की चूत मै मेने तेज़ तेज़ धके मरना चालू किया और उसी के साथ काजल की सिसकिया पूरे रूम मै गूंज नै लगी... मै काजल को बहोत बेदर्दी से चोद रहा था और उसकी दोनों चूची को भी मसल रहा था
काजल पसीने से पुरी भीग चुकी थी और उसकी सासे धोकनी की तरह चल रही थी... अब मेरे दिमाग मै एक खुराफाती आईडिया आया. अचानक मेने धके मरना बंध कर दिया... काजल की आंखे अभी भी बंध थी और बोल रही थी प्लीज चोदो ना मुझे....
तुम मेरी आँखों में आंखे डाल कर मेरा साथ दोगी तो ही मै चोदुँगा. मेरी बात सुन कर काजल नै ना में सर हिलाया. में भी अभी मेरा लंड ऐसे ही उसकी चूत मै डाल कर पड़ा था मै कुछ नहीं कर रहा था.
थोड़ी देर बाद काजल आँख खोल कर मुझे बोलती है जानू प्लीज चोदो ना अब नहीं सहा जाता... वो मेरी आँखों में देख रही थी और मेने वापस तेज़ी से काजल की चूत में धके मार ना चालू किया.
अब काजल उसकी नशीली आँखों से उसकी चुदाई होते दिख रही थी और उसके मूह से तेज़ सिसकी निकाल रही थी... अह्ह्ह....... ओह्ह्ह्ह मेरे राजा........ चोद तेरी रानी को....... अह्ह्ह्हह ओह्ह्ह्हह शह्ह्ह्ह..... और तेज़ मार..... तेरी रानी की चूत.... अह्ह्ह्ह निकल दे तेरी रानी कि पूरा पानी......
काजल की चूत मारते अभी १५ मिनट से जयादा टाइम हो चूका था अब फिर काजल के मुँह के एक्सप्रेशन बदल रहे थे... दस पन्द्र धक्को के बाद काजल फिर से चिल्लाई और मुझे कस कर अपने बाहो मै भर लिया.
अब मै भी तेज़ तेज़ धके मार रहा था और काजल भी मेरे साथ चीख रही थी. कुछ १५-२० तेज़ धक्को से काजल की हालत पतली हो गई.... मेरा भी अभी निकल नै वाला था... मेने काजल को पूछा कहा निकालू तो बोली मेरी चूत मै ही निकालो... मै तुम्हारे बच्चे की माँ बनना चाहती हु...
काजल के इतना बोलते ही मै एक ज़ोरदार शॉट मारा और चूत मै मेरा वीर्य निकलने लगा.. काजल की चूत मेरे वीर्य से भर गई... और उसके साथ ही काजल भी और एक बार मेरे साथ ही जड़ गई...
हम दोनों एक दूसरे आंख नहीं मिला पा रहे थे... काजल की आँखों मै देखा तो वो रो रही थी पर मेरे पूछने पर बोली कुछ नहीं आज पता चला मेरी ननद कितनी नसीब वाली है की आपके जैसा पति मिला है....आपके साथ बिताया ये एक एक पल में जिंदगी भर याद रखूगी....
में काजल के पास गया और वापस उसकी एक चूची को मुँह में लेकर चूसने लगा. काजल मना कर रही थी पर में कहा मान नै वाला थाकाजल बोली छोड़ो मुझे कोई आ जायेगा पर जैसे के मुझे कुछ सुनाई ही नहीं दे रहा था.
अचानक काजल ने मुझे धक्का मारा और में उसकी साइड में बेड पर गिर गया अब वो मेरे ऊपर आ गयी और मेरे ऊपर चढ़ गई
मुझे कुछ समज में नहीं आया की अचानक काजल को क्या हो गया.....
वो मुझे घुर रही थी काजल ने मेरी छाती पर चुम रही थी और फिर अचानक एक भूखी शेरनी की तरह वो सीधे मेरे लंड पर टूट पड़ी मेरे लंड को हाथ में लेकर ज़ोर से दबाया और फिर लंड के ऊपर ३-४ किस की उतना करते ही मेरे मुँह से हलकी सी सिसकी निकल गई...
फिर काजल ने मेरे लंड को मुँह में ले लिया और ज़ोर ज़ोर से चूसने लगी मेरी तो हालत ख़राब हो रही थी
मेरी तो बोलती ही बंध हो गई थी ... में तो न कुछ बोल नहीं पा रहा था सिर्फ काजल की चुसाई का मज़ा ले रहा था
करीब पांच मिनट की चुसाई के बाद मेने काजल का सर पकड़ा और मेरे लंड को उसके गले की गहराई तक पहुचाने लगा...मेने एक जोरदार सिसकी लेकर काजल के मुँह में ही जड़ने लगा. जब तक मेरा पूरा वीर्य काजल के गले के नीचे नहीं उतरा तब तक मेने मेरा लंड काजल के मुँह से बहार नहीं निकला.
काजल मेरा पूरा वीर्य पि गई और गीली जीभ से लंड को चाट चाट के पूरा साफ़ कर दिया. अब वो बाथरूम में गई और फिर कपड़े पहन कर नीचे चली गई.
करीब आधे घंटे बाद मेरी वाइफ और सासुजी भी मार्किट से वापस लौट आये.
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जल्दी जल्दी आप सब लोग अपने गंदे विचार मुझे रिप्लाय करो और आप सब को किसकी चुदाई करनी हे वो मुझे बताओ... और मेरी कहानी पढ़ने के बाद कितनो का पानी निकला येभी बताओ.
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