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Misc. Erotica द मैजिक मिरर (THE MAGIC MIRROR) {A tell of Tilism}
#85
अपडेट - 13



राज जल्दी से बाहर आकर नानी जी से मोमबत्ती के लिए पूछता है। राज की नानी राज को बताती है कि यहां पर मोमबत्ती तो नही है। लेकिन का केरोसिन का लैंप और एक पुरानी चिमनी है। 




राज बिना नानी की पूरी बात सुन जल्दी से चिमनी लेकर कमरे में जाता है और दरवाजा बंद कर लेता है। राज चिमनी जला कर उस नक्शे को देखता है।



अब आगे....


नक्शे को देखते ही राज की बाछें खिल जाती है। राज उस नक्शे के कुछ पॉइंट्स को शॉर्टकट मैं एक पॉकेट पेड पर लिख लेता है।

राज उस नक्शे को देखते हुए मैन ही मन बोलता है। दादाजी काल इस नक्शे के राज आपका पोता जान लेगा।

तभी नानी दरवाजा पिटती है और राज को आवाज देती है।

नानी: राजssss राजssss ये दरवाजा क्यों बैंड कर रखा है और क्या कर रहा है चिमनी से। बेटा वो केरोसिन है अगर गलती से कहीं गिर गया ना तो आग लग जायेगी। चल जल्दी से बाहर आ।

नानी ने अभी इतना कह ही था कि राज दरवाजा खोलते है और बाहर निकलता है। थोड़ी देर अपनी नानी को मुस्कुराते हुए देखता है और फिर अचानक से अपनी नानी के गले लग जाता है।

नानी भी सोचती है राज थोड़ा सा भावुक हो गया होगा। लेकिन नानी ने ये नही सोचा कि उन्होंने तो ऐसी कोई बात नहीं कहीं जिस से राज को भावुक होना चाहिए।

लेकिन नानी के सोचने से पहले ही राज ने नानी से कुछ बोल दिया। 

राज: नानी काफी दिन हो गए मुझे गांव आये हुए। मैं अपने दोस्तों से भी नहीं मिला। अगर आप कहें तो कल मिलने जाऊं।

नानी राज को अपने से थोड़ा सा दूर करती है और राज की आंखों में देखती है। नानी को राज की आंखों में अपने दोस्तों से मिलने की तड़प नज़र आती है। जिसे देख कर नानी मुस्कुराते हुए राज को जाने की इजाजत दे देती है।

ऐसी ही पूरा दिन मस्ती मजाक करते हुए राज ने अपनी नानी के साथ गुजार दिया। और रात को जादू की कहानीयां सुनते हुए राज गहरी नींद में सो गया।


राज नींद में भी कल के रोमांच के बारे में सोच रहा था। लेकिन उसके मन में एक बात और चल रही थी जिसका हल ढूंढना बहुत ज़रूरी था।

खेर सुबह सूरज निकलने से पहले ही राज की आंख खुल गयी। और राज से भी पहले उसकी नानी की आंख खुल गयी थी। जो कि इस वक़्त रसोई घर में झाड़ू लगा रही थी।

[Image: 5cd795c29c337.jpg] 


राज ने बड़े ही अदब से अपनी नानी को प्रणाम किया और अपने दोस्तों से मिलने जाने की बोलकर वहां से निकल गया।

हालांकि नानी राज को पीछे से आवाज देती रही उसे रोकने को लेकिन राज तो राज है वो अब कहाँ किसी की सुनता। 

राज की नानी राज को ये बताने की कोशिश कर रही थी कि अभी तो उसके दोस्त सो रहे होंगे इतनी जल्दी जाकर करेगा क्या? और फिर जा ही रहा है तो थोड़ी देर रुक कर चला जा। कम से कम नाश्ता तो करके जा।

लेकिन इधर नानी राज को चिल्ला-चिल्ला कर बोलती रही उधर राज बिना सुने दौड़ता हुआ उसी और दौड़ पड़ा जहां पिछली बार कालू श्याम और मंगल से मुलाकात हुई थी।

राज को अभी चलते हुए 10 मिनट भी नही हुए थे कि सुबह की पहली किरण खिलखिलाते हुए गांव की हरियाली की खूबसूरती को स्वर्ण जैसी चमकीला बना रही थी।

[Image: 5cd795fe3c523.jpg] 


पूरा गांव सूरज की रोशनी में सोने की तरह चमचमा रहा था। गांव के कुछ लोग उठ कर अपने खेतों में जा रहे थे तो कुछ लोग अपने घर के कामों में लगे थे। कुछ औरतें पानी का घड़ा भर कर अपने घर की ओर लौट रही थी।

[Image: 5cd79639b319e.jpg] 


राज गांव का ऐसा माहोल देख कर मन ही मन बहुत खुश हो रहा था। फिर अचानक उसे याद आता है कि जल्दी-जल्दी में वो नक्शा और कंपास तो लाना ही भूल गया। 

राज वापस अपनी नानी के घर की और मुड़ता है। राज कुछ 10 कदम भी नही चला होगा कि राज वही रुक कर सोचने लगा। 

राज (मन मे विचार): अब अगर वापस घर लौटा तो या तो नानी वापस नही आने देंगी या फिर मुझे थिंदी देर बाद आने देंगी। लेकिन इन सबसे पहले मैं नानी को वापस लौटने का कारण क्या बताउंगा?


राज अभी ये विचार कर ही रह था कि श्याम और कालू खेतों से बाहर निकल रहे थे। दोनो अपने अपने शर्ट के बटन लगा रहे थे। 

राज ने तो उन्हें नहीं देखा लेकिन कालू और श्याम ने राज को देख लिया। कालू जोर से श्याम को आवाज देकर अपने पास बुलाता है।

राज कालू की आवाज सुनकर पहले तो चोंक जाता है फिर पीछे मुड़ कर देखता है तो पहले से ज्यादा चोंक जाता है। लेकिन साथ ही खुश भी हो जाता है क्योंकि आखिर लंबे समय बाद राज अपने दोस्तों से मिला था।

राज: कालू श्याम तुम दोनो? यहां कैसे? मैं तुन्हें ही ढूंढता हुआ आ रहा था।

कालू और श्याम दौड़ते हुए राज के पास आकर राज के गले लग जाते है। राज भी अपने दोस्तों के गले लग कर बहुत खुश था।

कालू: तुम पूरे दो साल बाद आये हो राज। 2 साल में यहां बहुत कुछ बदल गया।

श्याम: हाँ राज । लेकिन ये सब छोड़ो और ये बताओ तुम कैसे हो?

राज: तुम लोगों के सामने हूँ। वैसे मंगल कहाँ है?

कालू और श्याम दोनो मुस्कुराते हुए एक दूसरे की तरफ देखने लगते। फिर राज को खेत की और इशारा कर देते है।

राज बहुत होले से पूछता है....

राज: क्या वो छिपा हुआ है?

कालू और श्याम दोनो ना मैं गर्दन हिलाते है।

तभी अचानक से खेत की फसल जोर जोर से हिलने लगती है जैसे कोई जानवर वह से आ रहा हो। और फिर अचानक से बाहर मंगल आता है। नीचे एक अंडर वियर पहन रखा था ऊपर कुछ भी नहीं था। बस एक शर्ट हाथ में पकड़ रखा था।

राज: मंगल????

मंगल: राज? ( मंगल भी राज के पास आकर राज को गले लगा लेता है। 

तभी खेतों के पीछे से एक लड़की भागी भागी आती है और सीधे चारों दोस्तों के सामने खड़ी हो जाती है।

राज जब उस लड़की को देखता है तो देखता ही रह जाता है।


[Image: 5cd796d911560.jpg] 

कमाल का हुस्न था उस लड़की का। उसकी थोड़ी सी अभी बड़ी हुई चुंचिया एक दम तनी हुई थी। उसके चेहरे पर हल्का सा शॉक और गुस्सा दोनो नज़र आ रहे थे।

अभी राज ने इतना ही देखा था कि फिर तुरंत ही राज उस लड़की को पीठ देकर खड़ा हो जाता है। 

दरअसल वो लड़की निर्वस्त्र थी। एक दम जन्म जात अवस्था में। वो लड़की तुरंत अपनी सुंदर सुडौल चुंचियों पर हाथ रख लेती है।

लड़की वापस जिस तेजी से खेतों से बाहर निकली थी उसी तेजी से खेतों में घुस गई थी।

राज: ये सब क्या है? कौन थी वो लड़की? और यह इस हालत में? आखिर चल क्या रहा है।

कालू: अरे यार तू न उल्लू का पट्ठा ही रहेगा। एक लड़की बिल्कुल नंगी तीन तीन लड़को के साथ क्यों होगी।

राज: क्यों होगी?

श्याम: चुदवाने के लिए और क्यों?

राज: क्या??????? ( राज मुह खुला का खुला रह जाता है)

राज: तुम लोग ये सब कर रहे थे यहां पर? 

तभी श्याम राज की बात बीच में काटते हुए तुम जानते हो ये लड़की कौन थी?

कालू और श्याम एक दूसरे की तरफ देख कर मुस्कुराने लगते है साथ साथ मंगल भी मुस्कुराता हुआ अपनी शर्ट का बटन बन्द कर ने लग जाता है।

राज: कौन थी ये लड़की?

कालू: और कौन होगी वो लड़की कोई और नही बल्कि अपने मंगल की बहन थी वो भी सगी बहन।

राज: क्या??????? ( इस बार सच में राज को बहुत बड़ा झटका लगता है)

राज: अपनी सगी बहन के साथ ये सब। लेकिन क्यों? एयर कैसे? मेरा मतलब वो तैयात कैसे हुई।

कालू: वो सब एक लंबी कहानी है राज। अभी तो बताया ना इन 2 सालों मे गांव में बहुत से बदलाव आए है।

कालू: राज जब पिछली तू गांव से गया था तो तेरे जाने के 2 हफ्ते बाद ही मेरे बाबा गुजर गए। उनके पेट में हमारे ही बैल नही सिंग मार दिया। जब तक हॉस्पिटल लेकर जाते उन्होंने दम तोड़ दिया था।


फिर बाबा के देहांत के क़रीब एक हफ्ते बाद पड़ोसी गांव के साहूकार आये। उन्होंने कुछ कागज दिखाए और बोला कि मेरे बाबा ने उनसे 40000 का कर्ज़ ले रखा है। 


उन्होंने ये भी कहा कि मैं तो कमाता हूँ नही। तो वो हमारी ज़मीन हड़पने के लिए मुझसे अंगूठे का निशान मांग रहे थे लेकिन मैंने मना कर दिया। और उनसे कहा कि मुझे छः महीने का वक़्त दे। ताकि उनके सारे पैसे चुका सकूँ।


कालू इतना बोल कर चुप हो गया। लेकिन फिर श्याम कालू के कंधे पर हाथ रख कर कालू की बात पूरी करता है।


श्याम: फिर कालू पर जब ये भारी समस्या आन पड़ी तो कालू मेरे पास आया। मैंने और कालू ने मिलकर बहुत कोशिश की, लेकिन कहीं से भी पैसों का इंतजाम नही ही रहा था।


एक दिन मैं और कालू गांव के बाहर लाला की दुकान पर चाय पी रहे थे कि वह साहूकार के कुछ गुंडे आये। उन्होंने हमारे साथ मारपीट की, हमारे कपड़े फाड़ दिए। और कालू को धमकी दे गए कि अगर 6 महीनों मेयो साहूकार का कर्जा नही चुकाया तो तेरी बहन को कोठे पर बेच आएंगे। और कर्ज़े का 40 गुना उसकी चूत से वसूल करेंगे।


कालू उनकी बात और धमकी सुनकर गुस्से से पागल हो गया था। कालू ने वही चाय की दुकान पर चाय बनाने वाले बर्तन को उठा कर उस आदमी के सर पर पूरे जोर से मार दिया।


बस फिर क्या था। उस आदमी के सर के दो टुकड़े हो गए। वो लोग उसे जल्दी से हॉस्पिटल ले जाने के लिए आगे बढ़े लेकिन कालू उसके शरीर पर पैर रख कर खड़ा हो गया। ना वो लोग उसे ले जा सकते थे। ना वो ज्यादा देर तक जिंदा रह सकता था। 


मैंने भी कालू को बहुत समझाने की कोशिश की , लेकिन कालू जब गुस्से में होता है तो इसे समझाना बेकार होता है।


उस आदमी का बहुत सा खून वही बह गया था। करीब एक घंटे बाद कालू उसे ले जाने के लिए बोल देता है। वो सारे गुंडे उस आदमी को हॉस्पिटल ले जाने के लिए आगे बढ़ते है लेकिन तब तक वो मर चुका था। 


फिर हम लोगो ने चाय वाले को धमका कर उसका मुह बन्द करवाया और वहां से गांव आ गए।


राज: क्या?????? इतना सब कुछ हो गया कर तुम लोगो ने मुझसे बात करने की कोशिश भी नही की? क्यों? क्या तुम लोग मुझे दोस्त नहीं मानते? 



मंगल: ऐसा नही है राज। लेकिन जब हम लोग शहर पहुंचे तो तू हॉस्पिटल में था। हमे लगा तुम्हे ऐसी हालात में परेशान करना ठीक नही होगा।


( पिछले 2 साल में राज को 4-5 बार और दर्द हुआ था जिन मैं कई बार राज ने दर्द बर्दाश्त कर लिया था लेकिन कई बार उसे डॉक्टर प्रिया के यहां ले जाना पड़ा था। शायद मंगल उसी समय की बात कर रहा हो।)
बर्बादी को निमंत्रण
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[b]द मैजिक मिरर (THE MAGIC MIRROR) {A Tale of Tilism}[/b]
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Hawas ka ghulam
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RE: द मैजिक मिरर (THE MAGIC MIRROR) {A tell of Tilism} - by Rocksanna999 - 12-05-2019, 09:18 AM



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