27-09-2021, 01:46 AM
(This post was last modified: 27-09-2021, 01:50 AM by Rishu. Edited 1 time in total. Edited 1 time in total.)
अब यह तो तय था की आगे क्या होने वाला है, और दो दिन बाद अगले शनिवार को, मेरी बीवी ने फिर से पूल पार्टी रखी और मैंने राजेश को बुला लिया। रेनू एक बहुत खूबसूरत स्विम सूट में थी।
लेकिन थोड़ी ही देर में मेरा पडोसी और मेरी बीवी मेरे घर के पूल के चारों ओर नंगे होकर घूम रहे थे। मैं पूल के अन्दर था और वो दोनों कभी एक दुसरे से लिपट रहे थे, कभी एक दुसरे को चूम रहे थे। राजेश का विशालकाय लंड पूरा खड़ा था और मेरी बीवी आते जाते उसे सहला रही थी।
कभी वो मेरे पास पूल में आ जाती और कभी राजेश के पास जाकर उससे चिपक जाती फिर मैं पूल से निकल कर पास पड़ी कुर्सी पर लेट गया और राजेश रेनू को लेकर पूल में चला गया और दोनों चुपचाप पानी की सतह के नीचे एक-दूसरे के जिस्मों के साथ खेलने लगे।
मैं उन दोनों की छेड़खानी देख रहा था और शराब पी रहा था। उस दिन हम तीनो ने ही काफी शराब पी थी, राजेश आज भी एक कोकटेल बना कर लाया था। यह एक यादगार दोपहर थी, और मेरा लंड उन दोनों को एक साथ देखकर एकदम सख्त हो गया था। वो दोनों मेरे निकलने के बाद भी काफी देर तक पूल में थे और लगभग शाम होने वाली थी, मुझे पता ही नहीं चला की कब मैं उन दोनों की मस्ती देखते देखते उसी कुर्सी पर सो गया।
अचानक, मेरी आँख खुली, अँधेरा हो गया था। मैंने चारों ओर देखा, वहां न रेनू थी और न ही राजेश। मैं हड़बड़ा कर उठ खड़ा हुआ, लेकिन शराब का नशा अभी भी काफी था। मैंने ध्यान दिया तो दूर से कुछ कराह जैसी सुनाई दे रही थी, मुझे लगा कि यह मेरी बीवी की सिस्कारियां थी। मैं उसको देखने घर के अन्दर गया। वह लिविंग रूम में नहीं थी। मैंने उपर बेडरूम में जाकर देखा तो वो वहां भी नहीं थी, मैं सोचने लगा की रेनू कहाँ गयी की तभी मैंने उसे देखा।
लेकिन थोड़ी ही देर में मेरा पडोसी और मेरी बीवी मेरे घर के पूल के चारों ओर नंगे होकर घूम रहे थे। मैं पूल के अन्दर था और वो दोनों कभी एक दुसरे से लिपट रहे थे, कभी एक दुसरे को चूम रहे थे। राजेश का विशालकाय लंड पूरा खड़ा था और मेरी बीवी आते जाते उसे सहला रही थी।
कभी वो मेरे पास पूल में आ जाती और कभी राजेश के पास जाकर उससे चिपक जाती फिर मैं पूल से निकल कर पास पड़ी कुर्सी पर लेट गया और राजेश रेनू को लेकर पूल में चला गया और दोनों चुपचाप पानी की सतह के नीचे एक-दूसरे के जिस्मों के साथ खेलने लगे।
मैं उन दोनों की छेड़खानी देख रहा था और शराब पी रहा था। उस दिन हम तीनो ने ही काफी शराब पी थी, राजेश आज भी एक कोकटेल बना कर लाया था। यह एक यादगार दोपहर थी, और मेरा लंड उन दोनों को एक साथ देखकर एकदम सख्त हो गया था। वो दोनों मेरे निकलने के बाद भी काफी देर तक पूल में थे और लगभग शाम होने वाली थी, मुझे पता ही नहीं चला की कब मैं उन दोनों की मस्ती देखते देखते उसी कुर्सी पर सो गया।
अचानक, मेरी आँख खुली, अँधेरा हो गया था। मैंने चारों ओर देखा, वहां न रेनू थी और न ही राजेश। मैं हड़बड़ा कर उठ खड़ा हुआ, लेकिन शराब का नशा अभी भी काफी था। मैंने ध्यान दिया तो दूर से कुछ कराह जैसी सुनाई दे रही थी, मुझे लगा कि यह मेरी बीवी की सिस्कारियां थी। मैं उसको देखने घर के अन्दर गया। वह लिविंग रूम में नहीं थी। मैंने उपर बेडरूम में जाकर देखा तो वो वहां भी नहीं थी, मैं सोचने लगा की रेनू कहाँ गयी की तभी मैंने उसे देखा।