17-06-2021, 10:21 AM
(This post was last modified: 17-06-2021, 10:22 AM by suneeellpandit. Edited 1 time in total. Edited 1 time in total.)
मैं और जल्दी जल्दी धक्के देकर चोदने लगा और मैंने चोदना जारी रखा और 15 मिनट तक लगातार उसकी मस्त मस्त चूत को चोदने के बाद मेरे हल्लाबी लौड़े ने अपना वीर्य बाहर निकलने की तैय्यारी कर ली .. तो मैंने तेज़ी से लंड को बाहर निकालकर एक बार में पूरा के पूरा लौड़ा अंदर की तरफ जड़ तक ठोक दिया ।
तो उसको एकदम हिचकी आ गई.. मैंने अपना लंड अपने सुपाडे तक बहार निकाला उसके हाथ में पकड़ाकर मुठ मरवाई.. 4-6 बार हिलाते ही लंड ने पिचकारी छोड़ दी और मेरा गरम गरम लावा उसके हाथ में भी लग गया। तो मैंने रुमाल से उसका हाथ साफ किया और उसने मेरा हाथ पकड़कर चूम लिया.. फिर में उसके ऊपर लेट गया और कहा कि तुम बहुत अच्छी हो शिल्पा और उसने भी जवाब में कहा कि सर, आप भी बहुत अच्छे हो और आपका ये मोटू भी बहुत ही पयार है ।
फिर हम दोनों कुछ देर बाद अलग हुए और कपड़े पहने.. उसको थोड़ा थोड़ा दर्द हो रहा था। फिर मैंने उसको गोद में बैठाया उसके जिस्म को सहलाया, चूमा उसका थोड़ा दर्द कम किया। फिर में कुछ देर के बाद मैंने उसको कहा की पैन किलर की दवाई ले लेना / उसके घर से निकल आया..
अब उसके बाद हम लोगों को जब भी मौका मिलता है.. तो हम चुदाई कर लेते है ।।
( दोस्तों इस कहानी का लेखन मैंने नहीं किया है / इसका हक़दार कोई और है / मैंने तो सिर्फ इसको कामुक बनाने के लिए इसमें अपने तरीके से कुछ कुछ कामुक शब्दों को डाला है ताकि पड़ने वाले को बहुत मजा आये और बदन गनगना जाये – सुनील पंडित )
तो उसको एकदम हिचकी आ गई.. मैंने अपना लंड अपने सुपाडे तक बहार निकाला उसके हाथ में पकड़ाकर मुठ मरवाई.. 4-6 बार हिलाते ही लंड ने पिचकारी छोड़ दी और मेरा गरम गरम लावा उसके हाथ में भी लग गया। तो मैंने रुमाल से उसका हाथ साफ किया और उसने मेरा हाथ पकड़कर चूम लिया.. फिर में उसके ऊपर लेट गया और कहा कि तुम बहुत अच्छी हो शिल्पा और उसने भी जवाब में कहा कि सर, आप भी बहुत अच्छे हो और आपका ये मोटू भी बहुत ही पयार है ।
फिर हम दोनों कुछ देर बाद अलग हुए और कपड़े पहने.. उसको थोड़ा थोड़ा दर्द हो रहा था। फिर मैंने उसको गोद में बैठाया उसके जिस्म को सहलाया, चूमा उसका थोड़ा दर्द कम किया। फिर में कुछ देर के बाद मैंने उसको कहा की पैन किलर की दवाई ले लेना / उसके घर से निकल आया..
अब उसके बाद हम लोगों को जब भी मौका मिलता है.. तो हम चुदाई कर लेते है ।।
( दोस्तों इस कहानी का लेखन मैंने नहीं किया है / इसका हक़दार कोई और है / मैंने तो सिर्फ इसको कामुक बनाने के लिए इसमें अपने तरीके से कुछ कुछ कामुक शब्दों को डाला है ताकि पड़ने वाले को बहुत मजा आये और बदन गनगना जाये – सुनील पंडित )
// सुनील पंडित //
मैं तो सिर्फ तेरी दिल की धड़कन महसूस करना चाहता था
बस यही वजह थी तेरे ब्लाउस में मेरा हाथ डालने की…!!!
बस यही वजह थी तेरे ब्लाउस में मेरा हाथ डालने की…!!!