21-04-2021, 11:48 AM
बूढ़ा बड़े मज़े के साथ मेरी थाइस को मज़े ले ले कर सहला रहा था. थोड़ी ही देर मे उसने अपने एक हाथ को मेरी कमर पर रख दिया और मेरी कमर को भी बड़े धीमे धीमे से सहलाने लग गया था. उसे लग रहा था कि मैं सो रही हू और कही जाग ना जाउ इस लिए वो पूरी एहतियात बरत रहा था. थोड़ी ही देर बाद मेरी थाइस और कमर सहलाने के बाद वो बोहोत धीरे धीरे से मेरी साडी को उपर उठाने लगा. मैने हल्की सी चोर निगाह से देखा कि उसका रिक्षन क्या है वो कर क्या रहा है. पर जैसे ही मेरी नज़र दोबारा से उसके 3” के लिंग पर गयी तो मेरी हँसी निकलते निकलते रह गयी. 3” इंच के लिंग से मेरे साथ सेक्स करने के सपने देख रहा है ये सोच कर मैं मन ही मन मुस्कुराने लग गयी.
मैने जब एक नज़र चोर निगाह से उसकी तरफ देखा तो वो पूरी तरह से डरा हुआ था. उसने डरते हुए अपने कांप-काँपते हाथो से मेरी साड़ी को मेरी थाइस तक कर दिया. साड़ी हटने के बाद वो फिर से बड़े धीमे धीमे से मेरी थाइस को सहलाने लग गया. वो जिस तरह से मेरी थाइस को सहला रहा था मुझे मेरे पूरे शरीर मे गुदगुदी सी होने लग गयी थी. पर मज़ा भी खूब आ रहा. थोड़ी देर मेरी नंगी थाइस पर हाथ फिराने के बाद वो अपने हाथ को वहाँ से हटा कर मेरे ब्लाउस पर ले आया और अपने हाथो से मेरे उरोज को हल्के हल्के पुश करने लग गया. थोड़ी देर तक ब्लाउस के उपर से हाथ फिराने के बाद वो ब्लाउस के बटन को खोलने की कोसिस करने लगा.
उसके हल्के हल्के उरोज दबाने से मुझे मज़ा तो आ रहा था पर डर भी लग रहा था कि कही वो मेरा ब्लाउस ना उतार दे. क्या मुझे सोने का नाटक जारी रखना चाहिए या उसे डाँट देना चाहिए क्यूकी उसकी हिम्मत और भी ज़्यादा बढ़ती जा रही थी. पर वो जिस तरह से मेरे उरोज दबा रहा था स्लोली स्लोली मुझे बोहोत मज़ा आ रहा था. इस लिए मैने सोचा कि ब्लाउस के बटन खोल कर वो हल्का हल्का दबा लेगा जिस से मुझे कोई ज़्यादा परेशानी नही. वैसे भी थोड़ी ही देर मे स्टेशन आने वाला है.
बूढ़े ने थोड़ी ही देर मे मेरे ब्लाउस के सारे बटन खोल दिए और उन्हे दोबारा से हल्के हल्के सहलाने लग गया. मैं भी अपनी आँखे बंद किए उसकी इस हरकत का मज़ा लेने लग गयी. थोड़ी ही देर मे उसने उरोज सहलाते सहलाते मेरे एक उरोज को ब्रा के उपर से ही सक करने लग गया. मैं तो बुरी तरह से हड़बड़ा गयी. एक तो मेरा ब्लाउस गीला था और उपर से वो मेरे उरोज को सक कर रहा था मैं तो मज़े की एक नयी दुनिया मे खोती जा रही थी. पर मुझे पता था ये सब ग़लत है जो कुछ भी हो रहा है अगर किसी ने मुझे या इसे देख लिया तो हम दोनो के ही लिए मुसीबत हो जाएगी. इस लिए मैने अपनी आँखे वापस खोल कर उसको डाँट दिया.
“ये क्या बदतमीज़ी है. दूर हटो मुझ से” बोहोत धीमे से बोल कर मैने उसे अपने से दूर धकेल दिया
बूढ़ा मेरी इस हरकत से बुरी तरह से घबरा जाता है. और डर के मारे मुझसे दूरी बना लेता है पर थोड़ी ही देर मे वो फिर से शुरू हो जाता है. वो एक दम से मेरे आगे गिडगीडाने लग गया..
“देखो तुम अगर मुझे करने दोगि तो तुम्हारा कुछ नही घिसेगा. एक बार करने दो ना. थोड़ी तो दया करो.” वो इतनी बुरी तरह से मेरे पैर पकड़ कर गिडगीडा रहा था कि मुझे समझ ही नही आ रहा था कि मैं क्या करू.
“तुम पागल हो गये हो. इतना मार खाने के और मेरे समझने के बाद भी तुम्हे अकल नही आई.” मैने उसकी तरफ गुस्से से देखते हुए कहा.
मैने जब एक नज़र चोर निगाह से उसकी तरफ देखा तो वो पूरी तरह से डरा हुआ था. उसने डरते हुए अपने कांप-काँपते हाथो से मेरी साड़ी को मेरी थाइस तक कर दिया. साड़ी हटने के बाद वो फिर से बड़े धीमे धीमे से मेरी थाइस को सहलाने लग गया. वो जिस तरह से मेरी थाइस को सहला रहा था मुझे मेरे पूरे शरीर मे गुदगुदी सी होने लग गयी थी. पर मज़ा भी खूब आ रहा. थोड़ी देर मेरी नंगी थाइस पर हाथ फिराने के बाद वो अपने हाथ को वहाँ से हटा कर मेरे ब्लाउस पर ले आया और अपने हाथो से मेरे उरोज को हल्के हल्के पुश करने लग गया. थोड़ी देर तक ब्लाउस के उपर से हाथ फिराने के बाद वो ब्लाउस के बटन को खोलने की कोसिस करने लगा.
उसके हल्के हल्के उरोज दबाने से मुझे मज़ा तो आ रहा था पर डर भी लग रहा था कि कही वो मेरा ब्लाउस ना उतार दे. क्या मुझे सोने का नाटक जारी रखना चाहिए या उसे डाँट देना चाहिए क्यूकी उसकी हिम्मत और भी ज़्यादा बढ़ती जा रही थी. पर वो जिस तरह से मेरे उरोज दबा रहा था स्लोली स्लोली मुझे बोहोत मज़ा आ रहा था. इस लिए मैने सोचा कि ब्लाउस के बटन खोल कर वो हल्का हल्का दबा लेगा जिस से मुझे कोई ज़्यादा परेशानी नही. वैसे भी थोड़ी ही देर मे स्टेशन आने वाला है.
बूढ़े ने थोड़ी ही देर मे मेरे ब्लाउस के सारे बटन खोल दिए और उन्हे दोबारा से हल्के हल्के सहलाने लग गया. मैं भी अपनी आँखे बंद किए उसकी इस हरकत का मज़ा लेने लग गयी. थोड़ी ही देर मे उसने उरोज सहलाते सहलाते मेरे एक उरोज को ब्रा के उपर से ही सक करने लग गया. मैं तो बुरी तरह से हड़बड़ा गयी. एक तो मेरा ब्लाउस गीला था और उपर से वो मेरे उरोज को सक कर रहा था मैं तो मज़े की एक नयी दुनिया मे खोती जा रही थी. पर मुझे पता था ये सब ग़लत है जो कुछ भी हो रहा है अगर किसी ने मुझे या इसे देख लिया तो हम दोनो के ही लिए मुसीबत हो जाएगी. इस लिए मैने अपनी आँखे वापस खोल कर उसको डाँट दिया.
“ये क्या बदतमीज़ी है. दूर हटो मुझ से” बोहोत धीमे से बोल कर मैने उसे अपने से दूर धकेल दिया
बूढ़ा मेरी इस हरकत से बुरी तरह से घबरा जाता है. और डर के मारे मुझसे दूरी बना लेता है पर थोड़ी ही देर मे वो फिर से शुरू हो जाता है. वो एक दम से मेरे आगे गिडगीडाने लग गया..
“देखो तुम अगर मुझे करने दोगि तो तुम्हारा कुछ नही घिसेगा. एक बार करने दो ना. थोड़ी तो दया करो.” वो इतनी बुरी तरह से मेरे पैर पकड़ कर गिडगीडा रहा था कि मुझे समझ ही नही आ रहा था कि मैं क्या करू.
“तुम पागल हो गये हो. इतना मार खाने के और मेरे समझने के बाद भी तुम्हे अकल नही आई.” मैने उसकी तरफ गुस्से से देखते हुए कहा.


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