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Fantasy जिया की कामुकता
#7
जिया की चढ़ती जवानी पर कई की नजर थी तो मेरे अनुशासन प्रिय भाई साहब मेरी जाल में फंस गए तो मैं एक रात मेनका बन विश्वामित्र के तप को भंग कर दी, मेरे घूमने फिरने से लेकर मॉडर्न ड्रेस पहनने तक पर रोक और फिर उनके साथ संभोग सुख निश्चित रूप से सामाजिक कुरीति ही है लेकिन जहां मजा नहीं वहां जिंदगी कैसा! दीपा दीदी की ज्ञान को हकिकत में बदलने लगी और उस पार्क में जिया ने नितिन के जींस को घुटनों तक कर दिया साथ ही चढ्ढी को भी तो उनके लंबे और मोटे लंड मेरी नजरों के सामने थे जिसे पकड़ मैं सहलाने लगी तो नितिन इधर उधर देखा फिर बियर की दूसरी बोतल खोल पीने लगा और जिया भैया के सामने ही घुटनों के बल हो गई तो चेहरा झुकाए उनके लंड का चमड़ा छीलकर चूमने लगी तो उनके गोरे लंड की गोलाई को घुमाते हुए जिया ओंठ से चुम्बन देने लगी और फिर उनका हाथ मेरे चूतड पर था जोकि स्कर्ट से ढकी हुई थी, स्कर्ट को कमर तक कर मेरे गोल गद्देदार गान्ड को सहलाने लगे और मैं अब उनके हाथ के स्पर्श से कामुक हो लंड का सुपाड़ा मुंह में लिए चूसने लगी और अब उनका दूसरा हाथ मेरे चूची पर था जिसे वो पकड़कर दबाने लगे। जिया अपने पूरे मुंह खोल नितिन के लंड निगल गई तो वो मेरे चूतड को सहलाते हुए टॉप्स को उपर किए ब्रा की हुक खोल दिए, अब उनका एक हाथ मेरे बूब्स पकड़ दबाने लगा तो चूतड पर वो थप्पड़ मार रहे थे, कामुकता वश जिया उनके लंड को मुंह में लिए सर का झटका देने लगी तो मेरी ब्रा बाहों में फंसी हुई लेकिन छाती से लटकी हुई थी और वो जोर जोर से चूची दबा रहे थे। जिया अब मुंह से लार टपकते देखी तो लंड बाहर कर उठ बैठी तो नितिन मेरे चूची को दबाते हुए बोला ” ब्रा निकाल दे रानी चुसुंगा ” मैं बेशरम लड़की खुद टॉप्स उतारी फिर ब्रा को निकाल घांस पर रख दी तो मेरा उपरी हिस्सा नंगा था, अब मैं उनके सामने बैठी हुई बियर पीने लगी तो वो चूची को पकड़ मुंह में लेने के लिए थोड़ा झुके ” ओह डियर देखो कैसे तेरे चेहरे के सामने मेरी बूब्स होगी ” और जिया घुटनों के बल हो गई तो मेरी छाती अब भैया के चेहरे के सामने थी और वो आराम से मेरी चूची मुंह में लेकर चूसने लगे साथ ही मेरे स्कर्ट में हाथ डाले पेंटी की डोरी खोल दिए, अब इस स्कर्ट का क्या काम लेकिन मैं तो बियर पीने में मस्त थी तो नितिन मेरी चूची चूसने में, उनका लंड मानो फुंफकार रहा हो तो अपनी छाती से लगाए उन्हें स्तनपान कराते हुए सिसक रही थी ” उह ओह आह चूसो चूसो डार्लिंग मुझे यही पर नंगा कर चोद दो आह मेरी चूत की खुजली
( वो मेरे स्तन मुंह से निकाले ) बेबी अभी तो तेरी चूत को चाटूंगा ” फिर वो मेरी चूतड को सहलाते हुए बुर को उंगली से कुरदने लगे तो उनकी एक उंगली मेरे चूत को क्या खाक तड़पाती और अब मेरे हाथ में उनका लंड था जिसे हिलाते हुए मस्त थी तो दोनों एक दूसरे के योनि को अपने हाथो से संतुष्ट करने में लगे हुए थे तो जिया बियर पीकर मस्त थी।
जिया को नितिन ने खड़ा होने को कहा तो मै पहले तो टॉप्स पहनी फिर खड़ी हो गई, दोनों जांघो को फैलाए स्कर्ट को कमर तक किए बोली ” ले बे कुत्ते चाट अपनी बहन की बुर साले मुंह में ही मूतुंगी फिर समझना ” वो मेरे सामने घुटनों के बल होने से पहले जींस और चढ्ढी को बाहर निकाला फिर चूत को चूमने लगा तो जिया खुद ही उंगली से चूत फैलाए चटवाने का न्योता दी और वो कुत्ता बुर में जीभ घुसाए चाटने लगा साथ ही गान्ड पर हाथ फेर रहा था और जिया खड़े खड़े इधर उधर भी देख रही थी ताकि किसी के इधर आने पर दोनों के कुकर्मों को पकड़ ना जा सके और अब नितिन चूत की गहराई तक जीभ डाल चाटे जा रहा था तो मैं कामुकता वश अपने एक पैर उठाई और उसके कंधे पर मोटे जांघ रख दी और वो लपलप कुत्ते की भांति बुर चाटने में लीन था ” ओह उई बहुत खुजली अब छोड़ो चूस चूस बे मादरचोद रण्डी की औलाद ” तो वो बुर से जीभ निकाला फिर मैं उसके सामने बैठकर उसके लंड पकड़े हिलाए जा रही थी तो वो मेरी चूची टॉप्स पर से ही पकड़ दबाए जा रहा था साथ ही सिसक भी रहा था ” उह ओह बेबी प्लीज़ चूस लो ना चूस चूस कर मेरे पेनिस को ढीला कर दो
( मैं उसके लंड को छोड़ी ) डियर चूस रही हूं लेकिन झडने पर हो तो बता देना, मुंह में मुझे वीर्य पसंद नहीं ” अब वो खड़ा हुआ तो शाम के करीब ०७:१५ बजे थे लेकिन ऐसे पार्क में कोई क्या करने आएगा, ना उतनी साफ सफाई और ना ही रोशनी का प्रबन्ध तो हम जैसे आशिक ही ऐसी जगह ढूंढते हैं जहां आराम से सेक्स का आनंद लिया जा सके, नितिन मेरे सामने खड़ा था तो मैं अपने घुटनों के बल होकर उसके लंड पकड़ी फिर मुंह में लिए चूसने लगी तो वो मेरे बाल को पकड़ा फिर मुंह में ही लंड का धक्का देता हुआ चोदने लगा तो जिया टॉप्स और स्कर्ट में थी तो पेंटी और ब्रा घांस पर पड़े थे और अब मेरे दोनों आंख बंद थे तो नितिन मेरी मुंह चोदता हुआ मस्त था तो मैं उसके लंड मुंह में लिए मूड में थी और फिर नितिन मेरे चेहरे को पीछे धकेल लंड मुंह से निकाल थोड़ा तिरछा हुए लंड को पकड़े हिलाया तो उससे वीर्य स्खलित होने लगा, मैं अपने चूत को पानी से धोकर पोंछ ली फिर पेंटी पहनी लेकिन ब्रा पर्स में रख ली तो नितिन भी कपड़ा पहन लिया और दोनों घर वापस चले गए
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
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RE: जिया की कामुकता - by neerathemall - 11-01-2021, 03:30 PM



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