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Adultery Diwali Ka Jua
#18
अगले एक मिनट तक दिव्या को सिर्फ कपड़ों कि सरसराहट सुनायी दी ..और फिर हर्षित कि आवाज आयी : "देख लो भाभी ..मैंने भी अब सारे कपडे उतार दिए हैं …”

कुछ सेकंड के इन्तजार के बाद दरवाजा खुलने कि आवाज आयी ..हर्षित समझ गया कि लोंडिया गर्म हो चुकी है ..

दिव्या ने दरवाजा पूरा खोल दिया ..

उसकी नजरें झुकी हुई थी ..जो हर्षित के पैरों कि तरफ थी ..उसने धीरे-२ नजरें ऊपर करनी शुरू कि ..हर्षित कि नंगी टांगों से होती हुई उसकी नजर जैसे ही उसके अस्तबल पर जाकर रुकी तो देखा कि उसने अपने घोड़े को अपने हाथों के पीछे छुपा रखा है ..

उसका कसरती बदन देखकर उसका दिल झूम उठा ..उसके अंदर चिंगारियां सी जलने लगी ..वो पूरी तरह से गर्म हो चुकी थी .

उसने याचना भरी नजरों से हर्षित को देखा, जैसे कह रही हो कि हटा लो ये हाथ भी …

हर्षित ने ना में सर हिलाते हुए कहा : "पहले आप भी दिखाओ मुझे …”

अब ना करने का कोई प्रश्न नहीं रह गया था ..वो वासना कि आग में पूरी तरह से जल रही थी , उसके अन्दर सोचने समझने कि कोई शक्ति नहीं रह गयी थी , उसने अपने बदन से साडी का पल्लू खिसका दिया ..और अपने ब्लाउज़ के हुक खोलने लगी ..

दिव्या इतनी जल्दी मान जायेगी ये हर्षित ने बिलकुल नहीं सोचा था , पर वो बेचारा ये नहीं जानता था कि कल रात से अब तक दिव्या किस तरह से अपने आप पर काबू रखे हुए है ..और अब हर्षित को अपने सामने पाकर वो अपनी सारी मर्यादा भूलकर बस मजे लेने के मूड में आ चुकी थी ..

जैसे ही हर्षित ने दिव्या कि ब्लेक ब्रा देखि ..उसने अपने लंड को अपने हाथ कि गिरफ्त से आजाद कर दिया …

और अपने हष्ट – पुष्ट और स्वस्थ लंड को हिला हिलाकर दिव्या के सामने नचाने लगा ..

दिव्या कि तो ऊपर कि सांस ऊपर और नीचे कि नीचे ही रह गयी …

उसने किसी सम्मोहन में बंधे हुए अपनी ब्रा को भी उतार फेंका और अब वो हर्षित के सामने टॉपलेस खडी थी ..
[Image: 341924_05big.jpg]
हर्षित अपना लंड झूलता हुआ अंदर आ गया और उसके पास जाकर खड़ा हो गया ..और उसने दिव्या को अपनी बाहों में पकड़कर अपने गले से लगा लिया …

ऐसा लगा जैसे बरसों के बिछड़े हुए प्रेमी गले मिल रहे हैं ..

हर्षित ने उसकी नरम और मुलायम छातियों को अपनी बलिष्ट पकड़ में लेकर अपनी छाती से पीस दिया …

उसके नन्हे -२ निप्पल घने बालों के अंदर छिपकर वहाँ से मिल रही घिसाई का आनंद लेने लगे ..

और फिर दिव्या ने अपना मुंह खोला और हर्षित के होंठों को अपने अंदर लेते हुए जोर से किस्स करना शुरू कर दिया …

”उम्म्म्म्म्म्म्म्म्म ……पुछssssssss ……….अह्ह्ह्हह्ह्ह्हह्ह ….”

वो तो कि तरह अपने मुंह से हुए हर्षित के होंठों का मांस खाने में लगी हुई थी .., इतनी बेसब्री तो उसे आज तक महसूस नहीं हुई थी ..

हर्षित ने भी इतनी गर्म औरत अपनी जिंदगी में नहीं देखि थी ..जो उसके लंड के देखते ही उसके सामने बेशर्मों कि तरह नंगी हो गयी थी ..

उसने दिव्या के पेटीकोट का नाड़ा खोल दिया और वो नीचे गिर पड़ा …दिव्या ने नीचे पेंटी नहीं पहनी हुई थी ..

हर्षित ने आगे बढ़कर अपने लंड को उसकी चूत से मिला दिया ..और दोनों ने एक हुंकार सी भरी , अपना -२ मुंह ऊपर करते हुए ..

हर्षित ने दिव्या को धक्का देते हुए नीचे बिठा दिया, और वो पंजों के बल बैठकर सीधा उसके लंड के सामने आ गयी ..और उसके फड़फड़ाते हुए लंड को ललचायी नजरों से देखते हुए उसे पकड़कर अपने मुंह के पास लायी और बड़े ही प्यार से उसे नीचे से ऊपर कि तरफ चाटा ..

और फिर उसे अपने मुंह के अंदर निगल कर जोरों से चूसने लगी ..
[Image: 512391_02big.jpg]
हर्षित चिल्ला पड़ा : "अह्ह्ह्हह्ह्ह्ह ………..ओह्हह्हह्हह्हह …..दिव्या …….उम्म्म्म्म्म्म ….”

इस समय दिव्या का मुंह किसी सकिंग मशीन कि तरह उसके लंड को निगलकर उसका रस चूसने में लगा हुआ था ..

और वो भी उसके बालों को पकड़कर अपने पठानी लंड को उसके मुंह के अंदर जोरों से मार रहा था ..

ज्यादा उत्तेजना और दिव्या के जोर से चूसने कि वजह से उसके लंड ने आखिर जवाब दे दिया ..और उसने भरभराकर अपना सारा रस उसके मुंह के अंदर विराजमान करा दिया …

दिव्या को उसका देसी स्वाद बहुत अच्छा लगा ..और वो सारा रस मजे लेते हुए गटक गयी ..
[Image: 512391_10big.jpg]
अब दिव्या की बारी थी ..उसकी टपक रही चूत की बारी..हर्षित ने उसे उठाया और अपने गले से लगाकर उसके पैरों तले की ज़मीन गायब कर दी ..दिव्या भी हर्षित के गले से लगकर अपने गुब्बारे दोनो के बीच फँसा कर लटक गयी ..हर्षित ने उसे लेजाकर बेड पर लिटा दिया ..और उसकी नशीली आँखों मे देखते हुए उसकी टाँगों के बीच बैठ गया ..दिव्या की चूत के होंठ उसके लपलपाते हुए होंठों को देखकर फड़कने लगे और उनमे से रिस रहा गाड़ा और मीठा रस हर्षित के मुँह मे जाने के लिए कुलबुलाने लगा ..हर्षित ने भी उन्हे ज़्यादा इंतजार नही कराया और अपनी पेनी जीभ निकाल कर उसने उसकी गीली चूत को सुखाना शुरू कर दिया .

”अहह ह ह ह ह ह ह ह… एम्म म म म म म … येस स स स स स स स सस्स स स स”

दिव्या ने हर्षित के बालों में अपनी उँगलियाँ फंसाकर उसे लगाम बना लिया और उसे किसी घोड़े कि तरह दौड़ाना शुरू कर दिया . .

अपनी चूत कि सफाई वो बड़ी अच्छी तरह से करवा रही थी । हर्शित ने उसकी चूत कि फांके खोलकर उसमे छुपे हुए मोती को ढूंढ निकाला …
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और जैसे ही हर्षित ने उसपर जमी हुई ओस को अपनी जीभ से चाटकर साफ़ किया दिव्या चिहुंक कर उछल पड़ी उसने गजब कि फुर्ती का परिचय देते हुए अपनी टांगों के बीच बंधे हुए हर्षित को घूमा कर बेड पर लिटाया और खुद उसके मुंह पर सवार हो कर उसकी खड़ी हुई जीभ पर अपनी चूत कि रगड़ाई करने लगी

एक छोटे मोटे लंड का काम कर रही थी हर्षित कि जीभ और वो भी सीधा उसके दाने के ऊपर …

ज्यादा तेज घस्से मारने से दिव्या कि चूत आग उगलने लग गयी इतना ताप निकल रहा था उसके अंदर से जैसे कोई भट्टी जल रही हो । पर जैसे हर मौसम बदलता है वैसे ही वहाँ के हालात भी बदले । अपनी गर्मी उड़ेलने के बाद उसमे से ठंडी बारिश कि भांति मीठे पानी कि बूंदे उमड़ – २ कर हर्षित के चेहरे पर टपकने लगी …जिसे वो ख़ुशी – २ अपनी जीभ से लपक कर पीने लगा । और जब दिव्या कि तिजोरी का सारा रस ख़त्म हो गया तो वो वहीँ बेड पर गिरकर गहरी – २ साँसे लेने लगी .

”अह्ह्ह्हह्ह्ह्ह। … …. हर्षित। …।उम्म्म्म्म्म्म ”

अब तक हर्षित का लंड फिर से खड़ा हो चूका था और इस बार वो पूरा मैच खेलने के मूड में था .

अपनी गहरी साँसे गिन रही दिव्या को देखा और उसकी टाँगे खोलकर उसके बीच आ गया ।

पर जैसे ही उसने अपने खड़े हुए नवाब को उसकी शहजादी से मिलाना चाहा तो सीडियों से किसी के चढ़ने कि आवाज सुनकर दोनों चोंक गए ।

दिव्या समझ गयी कि मनीष वापिस आ गया है …उसने बाहर का दरवाजा सिर्फ बंद किया था उसे अंदर से लॉक नहीं किया था .

हर्षित ने आनन् फानन में अपने कपडे समेटे और बेड के नीचे घुस गया । दिव्या के पास कपडे पहनने का समय नहीं था इसलिए उसने बेड पर पड़ी हुई चादर को अपने ऊपर ओड लिया और सो गयी ।

अगले ही पल मनीष अंदर दाखिल हुआ और उसने दिव्या को सोते हुए देखा । अगले ही पल उसने मुस्कुराते हुए दरवाजे कि चिटखनी लगा दी और बेड पर आकर बैठ गया ।

हर्षित : "दिव्या …ओ दिव्या , उठ जाओ। …आज और कितना सोना है तुम्हे …”

कहते – २ उसने उसके कूल्हे पर हाथ रखकर उसे उठाया और अगले ही पल वो उसके पुरे शरीर पर हाथ फिराते हुए जान गया कि दिव्या ने कुछ भी नहीं पहना हुआ है , मनीष कुछ और सोच पाता इससे पहले ही दिव्या उठने कि एक्टिंग करते हुए बोली : "उम्म्म्म्म्म्म्म। आ गए आप … कितनी देर से आपका वेट कर रही थी । पता है कितना मन कर रहा है ”

दिव्या कि बात सुनकर मनीष खुश हो गया , वैसे ये बात सुनकर तो हर पति खुश हो जाता है जब उसकी बीबी खुद चुदाई का निमंत्रण देती है .

हर्षित : "मन तो मेरा भी कर रहा है , तभि तो आधा काम छोड़कर भागा चला आया । बाकि का काम हरिया काका कर लेंगे । इसलिए उन्हें वहीँ छोड़कर आ गया ।"

खेर , दिव्या कि बात सुनकर मनीष उठ खड़ा हुआ और उसने अपने कपडे जल्दी – २ उतारने शुरू कर दिए , उसका लंड तो तभी से खड़ा हो चूका था जब वो कमरे में दाखिल हुआ था ।

बेड के नीचे छुपे हुए हर्षित के सामने मनीष के उतारे हुए कपड़ों का ढेर लग गया।

फिर उन्ही कपड़ों के ऊपर दिव्या के बदन से उतार कर फेंकी हुई चादर आ गिरी

हर्षित समझ गया कि उसके सर के ऊपर बिस्तर पर पड़ी हुई दिव्या अब मनीष के सामने पूरी तरह से नंगी लेटी हुई है .

मनीष ने दिव्या कि तजा चूसी हुई गीली चूत देखकर कहा : "सच में । तुम तो चुदने के लिए बिलकुल तैयार हो ।”

नीचे छुप कर बैठे हुए हर्षित को हंसी आ गयी उसकी बात सुनकर , क्योंकि कुँवे कि खुदाई तो उसने कि थी और पानी निकालने आ गया मनीष ।

मनीष ने अपने लंड को मसलकर जंग के लिए तैयार किया और उसकी रस बरसाती हुई चूत पर अपने लंड को लगाकर एक होले से धक्का दिया …और वो हल्का धक्का भी बहुत था उसके अंदर दाखिल होने के लिए ।

दिव्या आनंद सागर में गोते लगाती हुई कराह उठी

”आअह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह …।उम्म्म्म्म्म्म्म्म्म्म। …. मंनिईईईइश। ……।अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह …… चोदो मुझे ……अह्ह्ह्ह्ह्ह। ……जोर से चोदो ”
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उसकी आवाजें पुरे कमरे में गूंजने लगी थी ।

और नीचे लेटे हुए हर्षित ने भी उसकी सेक्सी आवाज सुनकर अपने लंड को मसलना शुरू कर दिया ।

कुछ देर तक उस आसान में मारने के बाद मनीषा बेड से नीचे उतर आया और उसने दिव्या कि दोनों टाँगे पकड़कर हवा में लहरा दिया और अपने लंड को फिर से उसकी गुफा के अंदर डालकर जोरों से झटके मारने लगा ।

हर्षित के बिलकुल पास थे मनीष के पैर … वो उसके हिलते हुए शरीर को देखकर अंदाजा लगा रहा था कि तेज झटकों से मिल रहे मजे किस तरह दिव्या को आनंद प्रदान कर रहे हैं उसने भी मनीष कि लय में लय मिलाकर अपने लंड को झटके देने शुरू कर दिए और अपनी आँखे बंद करके सोचने लगा कि वो झटके दिव्या कि चूत में दे रहा है ।

और ऊपर चुद रही दिव्या भी अपनी आँखे बंद किये हुए हर्षित के बारे में सोच रही थी । उसकी चूत में लंड तो उसके पति का था पर मन में उसका आशिक़ था जो उसकी बुरी तरह से चुदाई कर रहा था ।

हर्षित के बारे में सोचते हुए और मनीष के लंड के तेज झटके खाते हुए दिव्या बुदबुदाने लगी : "अह्ह्ह्हह्ह उम्म्म्म। …हान …. हाँ …. ऐसे ही चोदो मुझे … रंडी कि तरह … अह्ह्हह्ह मैं हु रंडी … चोदो मुझे …। आह्ह्ह्हहह्ह्ह्ह ……”
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बस इतना ही बहुत था मनीष के लिए …. एक मर्द को वही औरत पसंद आती है जो बिस्तर पर किसी रंडी कि तरह चुदे … और दिव्या उस पैमाने पर खरी उतर रही थी ।

मनीष के लंड ने जवाब दे दिया और उसके लंड से पिचकारी निकल पड़ी …

उसने अपने पाईप को बाहर निकाल लिया और उसे अपने हाथ में लेकर उससे दिव्या कि चूत कि सिंचाई करने लगा । और उसकी चूत को पूरी तरह से अपने रस से रंगने के बाद वो उसके ऊपर ओंधा होकर गिर पड़ा …

और यही हाल हर्षित का भी हुआ , उसके लंड से भी रंग बिरंगी पिचकारियाँ निकल कर बेड के नीचे वाले हिस्से से जा चिपकी।

मनीष उठा और वाश करने के लिए बाथरूम में चला गया .

दिव्या के कहने पर हर्षित जल्दी से बाहर निकला और अपने कपडे लेकर बाहर कि तरफ भागा ।

और नीचे पहुंचकर उसने अपने कपडे पहने और घर से बाहर निकल गया। 

और लगभग एक घंटे बाद वो फिर से मनीष के घर कि तरफ चल दिया ।

और इस बार उसका मकसद दूसरा था

जुआ खेलना

पर उसे नहीं पता था कि आज का जुआ क्या – २ रंग दिखाने वाला है .
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Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 16-03-2019, 12:26 PM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 19-03-2019, 10:44 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 19-03-2019, 11:19 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 19-03-2019, 11:35 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 19-03-2019, 11:47 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 19-03-2019, 06:54 PM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 20-03-2019, 10:58 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 20-03-2019, 11:10 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 20-03-2019, 11:20 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 20-03-2019, 11:31 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 20-03-2019, 11:56 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 22-03-2019, 09:59 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 22-03-2019, 11:44 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 22-03-2019, 12:11 PM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 23-03-2019, 10:33 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 23-03-2019, 11:08 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 23-03-2019, 11:17 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 23-03-2019, 11:44 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 24-03-2019, 11:10 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 24-03-2019, 11:24 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 24-03-2019, 11:47 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 28-03-2019, 11:28 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 28-03-2019, 11:54 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 30-03-2019, 12:09 PM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 31-03-2019, 11:28 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 31-03-2019, 11:53 AM
RE: Diwali Ka Jua - by Unknown - 31-03-2019, 03:20 PM
RE: Diwali Ka Jua - by Curiousbull - 02-05-2019, 01:42 AM
RE: Diwali Ka Jua - by badmaster122 - 11-05-2019, 11:37 AM
RE: Diwali Ka Jua - by shivangi pachauri - 11-11-2021, 12:46 AM



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