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Adultery हार तरफ चुत हि चुत (BIG & HOT STORY)
#68
दोनो निप्पल्स तन कर एक दम को बाहर को निकल आए थे मामी अपने हाथ से मेरे अंडकोषो को दबाती हुई बोली इस आग को इतना क्यो भड़का रहे हो कितना तडपाओगे मुझे जल्दी से ले लो मेरी मैने कहा मामी पहले आपके बदन को जी भर के प्यार करूँगा आज की रात अपनी ही है तो फिर जल्दी किस बात की तो मामी ने अपने होठ मेरे होंठो पर सज़ा दिए तो मैं भी उनका साथ देने लगा

काफ़ी देर की चूमा चॅटी के बाद मैने मामी को सीट पर लिटा दिया और उनकी पतली पतली टाँगो को चौड़ा कर दिया और चूत पर अपना हाथ रख दिया तो पता चला कि एक भी बाल नही है मैने कहा सफाई कर रखी है तो वो बोली आज सुबह ही की है तो मैं चूत को दबाने लगा मामी सिसकियाँ लेने लगी फिर मैने एक उंगली चूत के अंदर डाल दी और घुमाने लगा तो



मामी बोली बस उंगली से काम नही चलेगा ज़रा इधर भी चुम्मि तो तो मैने कहा कि ये हुई ना बात और मामी की जाँघो के बीच अपने होंठो को झुका लिया और उस गरमा गरम चूत जो काम रस से भरी पड़ी थी वहाँ पर अपने होंठो को लगा दिया मेरे होठ उन मस्त पंखुड़ियो से टकराए तो उनका खारा पानी मेरे मूह मे समाने लगा तो मज़ा ही आ गया



मामी ने अपनी जांघे खूब अच्छे से फैला ली और मेरे चेहरे को अपनी छोटी सी चूत पर दबाते हुए मेरे बालो मे अपनी उंगलिया फिराने लगी मैं मामी की चूत को चाटने लगा ऐसी करारी चूत थी वो कि मेरा दिल बहुत करता था कोशल्या मामी को चोदने को उन्हे देखते ही मेरा लंड तन जाया करता था मामी दबी आवाज़ मे आहे भर रही थी तो मैने कहा गाड़ी के शीशे बंद है तो खुल के आहें भरो बाहर किसी को सुनाई नही देगा तो मामी को और भी जोश चढ़ गया बड़े ही प्यार से वो मुझे अपनी चूत का रस पिलाए जा रही थी और उनके गले से मस्तानी आहें अब खुल कर उबल रही थी मामी की चूत से टपकते रस से मेरे मूह का टेस्ट ही बदल गया था मामी की सिसकारिया अब बेहद बढ़ गयी थी फिर उन्होने कहा कि अब हट जाओ उधर से मैं ऐसे ही नही झड़ना चाहती



तो मैं वहाँ से हट गया और झट से उन्होने फिर से मेरे लंड को अपने मूह मे भर लिया फटा फट से उसे चूसने लगी लंड तो पहले से ही फन्फनाया पड़ा था और भी गरम होने लगा 5 मिनिट तक चूसने के बाद उन्होने मेरे लंड को अपने मूह से बाहर निकाल दिया और फिर सीट पर घोड़ी बन कर खड़ी हो गयी मामी का बेहद सुंदर पिछवाड़ा मुझे अपनी ऑर आकर्षित कर रहा था मैने अपने हाथो से उनकी मुलायम कुल्हो को खूब भीचा और फिर अपनी मस्ती से चूर लंड को मामी की गीली चूत से सटा दिया जैसेही सुपाडा मामी की चूत से भिड़ा मामी बोली चोलो अब घुसा दो अंदर तो मैने उनकी कमर पर एक हाथ रखा और लंड को आगे को सरका दिया तो लंड चूत की फांको को फैलाता हुआ अंदर को जाने लगा मामी आआआआआआआआआआ हह करते हुए ज़ोर से आहह भरने लगी



मैने कहा क्या हुआ तो वो बोली काफ़ी दिनो बाद तुम्हारा लंड ले रही हूँ तो बस मस्ती सी आ गयी है मैने उनकी पीठ चूमि और कहा डार्लिंग ये लंड तो तुम्हारा ही है कभी भी ले लिया करो पर तुम ही दूर दूर भागती हो तो मामी बोली अब नही भागुंगी मेरे राजा ज़रा अपनी लंड को अंदर तक तो घुसा दो ना क्यो बीच मे रोक रखा है तो मैने फिर से धक्का लगाया और अपने पूरे लंड को मामी की चूत मे पहुचा दिया



मामी बोली अब जाकर मुझे मज़ा आया है तेरे मामा तो मेरी चूत को बहुत ही कम मारते है गान्ड के छेद को तो इतना चौड़ा कर दिया है पर मेरी चूत तो बस प्यासी ही पड़ी रहती है आज इसकी प्यास को ऐसा भुझा दो कि फिर कभी ये निगोडी भड़के ही ना और मामी ने अपनी गान्ड को पीछे करके हिलाना शुरू कर दिया मैने मामी के उभारों को अपनी मुट्ठी मे क़ैद कर लिया और जी भर कर दबाने लगा



तो मामी हाई हाई करने लगी मामी ने अपने बदन को थोड़ा सा उपर को उठा लिया ताकि मैं अच्छे से उनके बोबो को दबा सकूँ मामी की ये अदाए ही तो मुझे मार जाती थी कभी उनके बोबो को दबाता कभी मामी की नाभि को सहलाते हुए मैं पीछे से उनकी चूत पर धक्के पे धक्के लगाए जा रहा था और वो हसीना मेरी बाहों मे अपनी जवानी को मुझे समर्पित कर रही थी मामी पूरी मस्ती मे डूब चुकी थी



और मैं भी , मैने अब उनको सीट पर लिटा दिया और उनके उपर चढ़ गया तो मामी ने खुद ही मेरे लंड को अपनी चूत पर सेट कर लिया तो उनकी जीभ से अपनी जीभ लड़ाते हुए मैं फिर से उनको चोदने लगा मामी बड़ी ही बेताकल्लूफ़ी से मेरे होंठो को अपने होंठो से जोड़े जा रही थी कार हमारी चुदाई से हिल रही थी पर बाहर इतना अंधेरा और घहरी धून्ध थी कि कुछ दिखाई दे ही नही रहा था

मामी अब अपनी टाँगो को बुरी तरह से पटक रही थी चिकनी चूत मे दना दन लंड अंदर बाहर हो रहा था उस घर्षण से मामी को बड़ा ही मज़ा मिल रहा था मामी बोली सच मे आज चूत मरवाने का सुख मिला है काफ़ी दिनो बाद तुम भी कुछ दिन इधर ही रुक जाना महमानो के जाने के बाद मोका ही मोका होगा तो मैने कहा हाँ एक दो दिन तो रुक ही जाउन्गा



हम अपनी मंज़िल की तरफ तेज़ी से बढ़ रहे थे तो फिर से मैने तेज़ी से उनको चोदना शुरू कर दिया मामी ने मस्ती के मारे अपनी आँखे बंद कर ली थी करीब 5 मिनिट के बाद उनका शरीर ऐंठा और फिर ढीला पड़ गया मामी झड गयी थी मैं भी बस किनारे पर ही था तो तेज़ी से चूत पर धक्के लगाते हुए मैं भी झड़ने लगा लंड से निकलती हुवी गरम वीर्य की पिचकारिया मामी की चूत की दीवारो पर गिरने लगी

झड़ने के बाद भी करीब 10-15 मिनिट तक हम दोनो एक दूजे की बाहों मे लिपटे चूमा चाटी करते रहे फिर मामी बोली उठो ज़रा मुझे पेशाब करना है तो वो फिर नंगी ही गेट खोल कर बाहर आ गई और मूतने के लिए बैठ गयी शांत वातावरण मे उनकी चूत से बहते हुए पेशाब की सुर्र्रर सुरर्र करती हुई आवाज़ गूंजने लगी तो मैं भी बाहर आ गया और उनके साइड मे खड़े होकर ही पेशाब करने लगा



मूतने के बाद मामी गाड़ी मे घुसने लगी तो मैने उन्हे पीछे से पकड़ लिया और चूम ने लगा वो बोली बाहर बोहोत सर्दी है अंदर चलो कहीं मेरी कुलफी ना जम जाए मैने कहा थोड़ी देर ठंड मे ही मज़ा लो और उन्हे अपनी बाहों मे चिपका लिया उनकी नंगी चूचिया मेरी छाती से रगड़ खाने लगी तो फिर से मस्ती चढ़ने लगी मैं उनकी गान्ड को दबाते हुए बोला मामी अभी आपको इधर ही चोदता हूँ



वो बोली कितना जाड़ा पड़ रहा है मान ते क्यो नही तो मैने कहा मामी अब मेरी छोटी सी इच्छा भी पूरा नही करोगी क्या तो वो बोली तुम्हारे लिए तो कुछ भी कर जाउन्गी तो मैने कहा फिर जल्दी से लंड को खड़ा कर दो ताकि मैं अपनी प्यारी मामी की चूत ले सकूँ तो वो वही मेरी टाँगो के बीच घुटनो के बल बैठ गयी और मेरे सोए हुए लंड को अपने मूह मे भर के उसे फिर से चुदाई के लिए तैयार करने लगी



मैं बोला मामी कितना अच्छा लंड चुस्ती हो आप तो वो और भी मस्ती से लंड को चाट ने लगी तो लंड भी जल्दी से फॉर्म मे आने लगा करीब 15 मिनिट तक मामी ने लंड को चूसा फिर मामी उठ खड़ी हुवी तो मैने उन्हे कार की डिग्जी पर झुका दिया उनके नरम चूतड़ मेरी तरफ हो गये मामी ने अपनी टाँगों को चौड़ा कर लिया और मैने आगे बढ़ कर अपने लंड को चूत से लगा दिया




अगले ही पल मेरा लंड मामी की चुदासी चूत मे घुसा हुआ था और मामी डिग्जी पर झुके हुए अपनी चूत मरवा रही थी मामी की कसी हुई चूत मे लंड मस्ती से अंदर बाहर हो रहा था मामी की खनकती चूड़ियो को आवाज़ मुझे तो जैसे पागल ही कर रही थी मैं बोला आपकी चूत मे इतना नशा है कि जी करता है कि मेरा लंड कभी चूत से बाहर आए ही ना



तो मामी अपनी तारीफ़ सुनकर खुश हो गयी मैने उनकी कमर मे हाथ डाल दिया और दूसरे हाथ को उनकी चूत पर रख कर आगे से मसल्ने लगा तो कोशल्या मामी बड़ी ही मस्त हो गयी मामी बोली जाड़े मे चुदने का तो मज़ा ही बड़ा अलग होता है अब बिल्कुल भी ठंड नही लग रही है बस तुम्हारे लंड को गर्मी मेरे जिस्म मे फैल रही है मैं बोला मामी अब तो मज़ा आया आपको तो वो बोली हाँ आ रहा है




तेरा ये लंड ही मेरी चूत का असली साथी है काश तू फोज की नोकरी मे ना होता तो किसी भी बहाने से तुझे अपने पास ही रख लेती और खूब चुदवाती पर अब क्या करूँ मेरे भाग ही खराब है और तुझे भी करने को बस फोज की ही नोकरी मिली मैने कहा अब क्या करूँ मामी जो है वो है, फिर मामी बोली मेरे पैर थकने लगे है तो मैं उन्हे गाड़ी के अंदर ले आया और


खुद लेट कर उन्हे अपने लंड पर बिठा लिया तो मामी लंड पर अपनी गान्ड को मटकाने लगी मैने अपनी उंगली मामी की गान्ड मे घुसा दी तो उन्होने अपने चुतड़ों को भीच लिया अब उनके दोनो छेद भरे हुए थे तो और भी मस्ती उनके अंदर भरने लगी मामी पूरे जोश से मेरे लंड पर कूद रही थी चूत के रस से सना हुआ मेरा लंड बड़ा ख़तरनाक हो चला था मैने अपनी गर्दन थोड़ी सी उपर को उठाई और मामी की चूची पर अपना मूह लगा दिया तो वो तिगुनी मस्ती मे डूबने लगी हालाँकि उनकी रफ़्तार थोड़ी कम हो गयी थी पर मस्ती पूरी पूरी थी और अपना हाल भी कुछ उन के जैसा ही था मामी बोली अच्छे से पियो मेरे बोबो को इनको भी बड़ी खुजली मची रहती है इनको आज निचोड़ ही डालो तो मैं अपने दाँत गढ़ाने लगा वहाँ पर पर उस दर्द मे भी उनको बस मज़ा ही मिल रहा था करीब 10-12 मिनिट तक मेरे उपर रहने के बाद मामी बोली अब तुम मेरे उपर आ जाओ




तो मैने उन्हे अपने नीचे ले लिया और उनकी एक टाँग को अपने कंधे पर रख कर चुदाई शुरू कर दी मामी की चूत से बहुत पानी बह रहा था तो पच पच करते हुए मेरा लंड तूफ़ानी गति से मामी को चोदे जा रहा था मैने मामी के कंधो पर अपने दाँत लगाने शुरू कर दिए तो मामी बोली खा जाओ मुझे पूरी की पूरी को आज की रात ऐसी बना दो कि जैसे अपनी सुहागरात ही है



मामी की रसीली बाते सुनते हुए उनको चोदने मे बड़ा ही मज़ा आ रहा था मामी मस्ती मे कुछ का कुछ बक रही थी तो मेरे कानो से धुआ निकल रहा था मामी मेरे नीचे पिस रही थी पर इसमे भी तो मज़ा ही मज़ा था और कोशल्या मामी तो खुद मलाई थी जिसे मैं आज खा रहा था मामी को ये रात पूरी तरह से मेरे नाम थी उनका उस रात बस एक्लोता हकदार मैं ही था और वो भी अपनी तरफ से कोई कसर नही रख रही थी

अब मामी ने मुझे बुरी तरह से कस लिया था और अपनी टाँगो को वी शेप पर कर दिया तो मेरे लंड पर भी पूरा दबाव पड़ रहा था तो मैं भी सखलन की ओर बढ़ने लगा और शायद मामी भी अपना रास्ता पकड़ चुकी थी तो करीब 5-7 मिनिट बाद मेरे लंड से उसका पानी निकल कर मामी की चूत मे गिरने लगा और तभी उनकी चूत ने भी अपना सबर खो दिया और वो भी झड़ने लगी हम दोनो साथ साथ ही झड गये थे क्या मज़ा आया था मुझे तो उस टाइम

उस चुदाई के बाद मामी ने अपने कपड़े पहन लिए और बोली अब घर चलो बाकी रही सही कसर उधर पूरा कर दूँगी तो मैने भी अपने कपड़े पहने फिर मामी के होटो को चूमा और गाड़ी गाँव के रास्ते पर डाल दी धुन्ध की घहरी चादर छाई हुई थी तो धीरे धीरे ही ड्राइव करना था मैने कहा मामी लंड को तो पकड़ लो तो गाँव आने तक मामी कभी मुझे अपने होटो का रस पिलाती रही और कभी मेरे लंड से खेलती रही



गाँव आने पर मामी ने कहा कि गाड़ी अपने घर की तरफ ले लो तो मैने गाड़ी उनके घर की तरफ मोड़ दी मामी बोली बड़ी जीजी के घर अब सुबह ही चलेंगे रात के ये जो कुछ घंटे बचे है तुम्हारे साथ ही गुज़ार लेती हूँ मैने कहा जैसी आपकी इच्छा है मेरी डार्लिंग और उनकी जाँघो को सहला दिया तो फिर करीब 10 मिनिट बाद हम उनके घर पर थे गाड़ी से उतरे और अंदर गये तो देखा कि कुछ रिश्ते दार बैठक मे पड़े है और कुछ सामने वाले कमरे मे सभी लोग घोड़े बेचकर सोए हुए थे तो मामी ने पर्स से चाबी निकाल कर अपने बेडरूम का ताला खोला और हम अंदर आ गये पूरे घर मे एक सन्नाटा सा फैला हुआ था तो मामी ने दरवाजा बंद किया और कहा कि चलो अपन भी थोड़ा सा आराम कर लेते है




मैने उनकी साड़ी को खोलना शुरू दिया तो वो बोली क्या कर रहे हो मैं पेटिकोट का नाडा खोलते हुए बोला डार्लिंग आज किसे सोना आज तो आपकी चूत गान्ड सबका मज़ा लूँगा पूरी रात तो मामी अपनी कच्छि उतारते हुए बोली मेरे राजा दिन निकलने तक तुम्हारी बाहों मे ही हूँ कर लो कुछ भी तो मैने उनकी गुलाबी रंग की ब्रा को भी खोल दिया और मामी बोली लाइट बंद करके बेड पे चलो




तो मैं उनके चुतड़ों को दबाते हुए बेड पर आ गया मामी ने लाइट बंद कर दी और रज़ाई मे आ गयी रज़ाई मे दोनो नंगे तो फिर शरारत तो करनी ही थी मैं मामी की जाँघो को सहलाते हुए बोला अभी गान्ड मरूं क्या तो वो बोली ठीक है कर लो पीछे भी मैने कहा पहले साथ साथ लंड और चूत को चूस्ते है मज़ा आएगा तो वो बोली जैसे तुम कहो मेरे राजा और हम दोनो69 मे आ गये



मैने जैसे ही अपनी जीभ को लंबा करते हुए चूत और गान्ड दोनो पर घुमा दिया तो मामी ने शरारत करते हुए मेरे सुपाडे पर अपने दाँत गढ़ा दिए तो मैने भी चूत के दाने को काट लिया तो मामी के बदन मे हलचल मच गयी उन्होने पूरी तरह से अपने पिछवाड़े को मेरे हवाले कर दिया और हम दोनो एक दूसरे के अंगो का टेस्ट करने लगे



रज़ाई का तापमान अचानक ही बढ़ने लगा था मामी ने मेरी गोलियो को अपने मूह मे लिया हुआ था और मज़े से उन्हे चूस रही थी तो लंड मे भी करंट दौड़ने लगा था मामी की मस्त जीभ का टच मेरी गोलियो पर मुझे उत्तेजित करने लगा था दस पंद्रह मिनिट तक मैं और मामी लंड चूत की चुसाइ करते रहे फिर मामी बोली बस अब तुम गान्ड मारलो फिर मैं चूत भी मर्वाउन्गी




तो मामी उल्टी हो कर लेट गयी मैने तकिया उनके पेट पर लगाया तो उनके चूतड़ उपर की तरफ उठ गये मैने मामी की गान्ड के छेद पर काफ़ी सारा थूक लगाया और फिर अपने लंड को गान्ड पर रगड़ने लगा तो मामी के चुतड़ों मे थिरकन होने लगी हालाँकि मामा ने पहले से ही उनकी गान्ड को काफ़ी चौड़ी किया हुआ था तो लंड को ज़्यादा परेशानी नही हुई
गान्ड मे जाने मे और बाकी का काम थूक ने कर दिया मेरा लंड मामी की गान्ड मे घुस चुका था और मैं मामी के उपर लड़ गया था मैं मामी के कान मे बोला कम गान्ड दिया करो मामा को तो वो बोली क्या करूँ उन्हे पता नही कहाँ से लत लगी है कि बस गान्ड ही चाहिए उन्हे तो क्या करूँ मैने कहा वो बाद मे सोचना अभी तो बस हम दोनो ही है



मैं उनके सेब से गालो को चूमते हुए गान्ड मे लंड को अंदर बाहर करने लगा तो मामी के चूतड़ भी हिल हिल कर रेस्पॉन्स करने लगे बेशक थोड़े छोटे चूतड़ थे साइज़ मे पर थे एक दम मस्त तो मामी की गान्ड चुदाई शुरू हो गयी थी मामी धीमे धीमे आवाज़ करते हुए अपनी गान्ड मरवाने लगी मैं उन पर लड़ हुए पूरी मस्ती लेते हुए मामी से प्यार भरी बाते करते हुए मामी की गान्ड मारे जा रहा था मामी ने भी अपनी गान्ड का दरवाजा मेरे लिए खोल दिया था तो काफ़ी देर तक मैं गान्ड मारता ही रहा फिर वो बोली अब चूत मे भी डाल दो ना उधर भी गर्मी बढ़ रही है तो मैने मामी को पलट दिया और अपने लंड को चूत के दाने पर रगड़ने लगा तो मामी को करंट लगना शुरू हो गया

थोड़ी देर चूत पर लंड को रगड़ने के बाद मैने उसे फिर से मामी की चूत मे डाल दिया और मामी मे समा गया उस रज़ाई के अंदर हमारे दो जिस्म एक दूसरे मे समाए हुए उन आनंद दायक पलों को जी रहे थे मैं मामी के उपर छाया हुआ था तो वो मेरे नीचे होकर भी मज़ा ले रही थी मामी की करारी चूत बहुत फड़ फडा रही थी उस रात हमारे होठ फिर से आपस मे लॉक हो गये थे और बेड के गद्दे को हिलाते हुए हम दोनो लगे हुए थे एक दूसरे के साथ


मामी कोषल्या भर भर के अपनी जवानी के प्याले मुझ पर लूटा रही थी आख़िर उनकी चूत भी तो मेरे लंड की प्यासी थी मामी बोली बड़ा मॅजा आ रहा है बस ऐसे ही धीरे धीरे मुझे चोदो तो कभी मैं चूत मारने लग जाता फिर लंड निकाल कर गान्ड मे घुसा देता और मामी भी ऐसे ही मज़ा लेते हुए चुद रही थी आधे घंटे से भी ज़्यादा देर तक हम दोनो चुदाई कर ते रहे



फिर मैने अपने लंड को बाहर निकाला और इस बार उनके मूह मे अपना रस डाल दिया जिसे वो झट से पी गयी तो उस रात सुबह का उजाला होने तक हम दोनो बिना एक पल सोए काम क्रीड़ा करते ही रहे मामी ने वो रात सच मे बहुत यादगार बना दी थी

फिर जब मेहमान लोग जागने लगे तो मामी जो कि बुरी तरह से थकि हुवी थी फ़ि भी वो उनके लिए चाइ बना ने के लिए रसोई मे चली गयी और मैं थोड़ी देर बिस्तर पर ही पड़ा रहा फिर थोड़ा सा उजाला हुआ तो मैं खेतो मे चला गया आया हाथ मूह धोया ठंड तो बहुत ही पड़ रही थी मामी ने कहा चाइ पियोगे तो मैने मना कर दिया और कहा कि मैं बड़ी मामी के घर जा रहा हूँ तो वो बोली ठीक है मैं भी थोड़ी बहुत देर मे आती हूँ



मैं मामी के घर आ गया भाई भी दुल्हन लेकर आ गया था पता चला कि दस पन्दरह मिनिट पहले ही आए है तो मैने भाभी को पकड़ लिया तो वो बोला अबे कहाँ गायब हो गाया था कितनी ज़रूरत थी तेरी उधर मैने कहा यार वो मामी की तबीयत खराब हो गयी थी तो मामा ने उनके साथ भेज दिया था तो मजबूरी हो गयी थी तो वो बोला चल कोई ना
पर तू उधर ही रुकता तो अच्छा रहता मैने कहा कोई ना इधर मस्ती कर लेंगे तो वो बोला हाँ वो तो है वो बोला यार एक झपकी ले लेता हूँ मैने कहा ठीक है फिर मैं जीजा के साथ बाते करने लगा और उधर ही नाश्ता भी कर लिया शादी हो गयी थी कुछ रस्मे बची हुई थी तो उन्ही की तैयारी थी तो अपना क्या काम अपन ने एक खाट प्लाट मे डाली और लेट गये



बुग्गी आ गयी मेरे पास और बोली मैं तो शाम तक जा रही हूँ मैने कहा कहाँ जा रही है तो वो बोली कि शादी हो गयी अब चलते है मैने कहा आज आज रुक जा तो वो बोली नही यार आज आज तक की ही छुट्टी है कल होटेल जाना होगा तो दोपहर तक निकल जाउन्गी तो रात तक जयपुर मैने कहा यार रुकती तो अच्छा लगता तो वो बोली मेरा अड्रेस देकर जाउन्गी कभी भी आ जाना

मैने कहा तेरी मर्ज़ी है वैसे मैं भी कल ही निकलने वाला हूँ फिर दूल्हा दुल्हन मंदिर जा रहे थे तो उनके साथ जाना पड़ा फिर भाभी की मूह दिखाई की तो दोपहर इन सब मे ही हो गयी थी बुग्गी के जाने का समय हो गया था तो फिर उसको शहर जाने वाली जीप तक बिठाने चला गया और वादा किया कि जब भी फुरसत होगी पक्का आउन्गा उस से मिलने के लिए



उसको जाते हुए देखता रहा पर अच्छा नही लगा जाना उसका पर कर भी तो क्या सकता था जाना भी ज़रूरी था शाम होने लगी थी ये सर्दियो के दिन भी कितनी जल्दी ढल जाते है पता ही नही चलता है बुग्गी को बिठा कर आ रहा था तो रास्ते मे लिली के दर्शन हो गये पूछा कहाँ तो बोली ज़रा दुकान तक आई थी मैने कहा यार कल चला जाउन्गा तो आज दे दे



वो बोली जगह कहाँ है , मैने कहा खेत मे या छप्पर मे वो बोली ना रिस्क नही लेना वो कुछ सोचके बोली कि आज भाई शायद खेत मे पानी देने जाए अगर वो गया तो मैं उपर चॉबारे मे तुझे बुला लूँगी मैने कहा मैं इंतज़ार करूँगा कुछ रिश्तेदार चले गये थे कुछ रह गये थे पापा ने कहा घर चलेगा क्या तो मैने कहा नही आ सकता छुट्टिया बस शादी तक ही थी



तो वो बोले पर अगली बार पक्का आ जाना मैने कहा जी ठीक है फिर कुछ ऑर मुद्दो पे भी बाते हुई पर पता नही क्यो मैं थोड़ा सा कट सा रहा था उनसे आज रात भाई की सुहागरात थी तो ऐसे ही उसके मज़े लिए जा रहे थे चुस्कियो का दौर चल रहा था अब अपन भी शामिल थे तो तगड़ा वाला टाइम पास हो रहा था फिर डिन्नर के बाद सबने अपने अपने बिस्तर ले लिए थे चॉबारे में



तो भाई के लिए बुक हो गया था तो मैने अपना डेरा नीम के पास वाले कॉटडे पर डाल लिया आधी रात तो ऐसे ही सबसे बाते करने मे बीत गयी थी फिर एक एक करके सब लोग बिस्तर मे घुस गये पर मुझे नींद नही आ रही थी मैने लिली को कॉल की तो उसने दबी दबी आवाज़ मे कहा कि भाई घर पर ही है तो वो नही आ सकती पर मुझे तो चूत की आग लगी थी मैने कहा तू अभी कहाँ है



तो वो बोली मैं तो नीचे वाले कमरे मे हूँ मैने कहा तेरे पास कॉन है बोली अकेली हूँ मैने कहा तो गली वाला दरवाजा खोल दे मैं तेरे कमरे मे आ जाता हूँ और किसी को पता भी नही चलेगा तो वो बोली चल ठीक है तेरे लिए रिस्क ले रही हूँ पर करते ही चले जाना मैने कहा ठीक है तो फिर दस मिनिट बाद मैं गली मे चला गया दरवाजे को छूते ही वो अंदर को झूल गया तो मैं कमरे मे दाखिल हो गया



उसने झट से दरवाजा बंद किया और बोली जल्दी से कर्लो और फिर जाओ कहीं बापू या कोई घरवाला ना जाग जाए मैने उसका हाथ पकड़ा और बेड पर ले आया उसने सलवार का नाडा खोलकर नीचे सरका दी अंदर कच्छि नही थी तो मैं चूत को सहलाने लगा उसने मेरे पयज़ामे को नीचे सरका के मेरे लंड को थाम लिया और हिलाने लगी
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RE: हार तरफ चुत हि चुत (BIG & HOT STORY) - by Pagol premi - 06-12-2020, 10:39 AM



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