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Adultery हार तरफ चुत हि चुत (BIG & HOT STORY)
#55
मैने कहा और बता क्या चल रहा है तो वो बोली बस कट रही है लाइफ घिसत घिसट के जॉब के लिए टेस्ट दिया है देखो क्या रहता है मैने कहा अरे चिंता ना कर हो जाएगा सेलेक्षन मेरी नज़रे प्रिया के बदन की स्कानिंग करने लगी थी अब वो पूरी जवान हो गयी थी और निखर भी आई थी पता नही मेरे दिमाग़ मे ये ख़याल कैस आया तो मैने अपना ध्यान दूसरी तरफ लगाना चाहा



शाम होते होते सभी से मिल लिया था मैं प्रिया तो मुझे एक पल अकेला छोड़ ही नही रही थी जैसे तैसे उस से बच के मैने बुआ को पकड़ा और कहा आज रात को कुछ होगा क्या तो वो बोली घर मे तो गेस्ट है तो पासिबल नही होगा कल मैं तेरे साथ बाहर चलूंगी फिर मज़ा करेंगे मैने कहा ठीक है तो फिर वो रात बस ऐसे ही मस्ती मज़ाक मे कटने लगी



खाने-पीने के बाद हम सब लोग छत पर नीचे ही बिस्तर लगा के बाते कर रहे थे जिस तरफ हम थे उधर रोशनी थोड़ी कम थी जो भी थी बस चाँद की चाँदनी ही थी तभी मुझे लगा कि मेरे पैर पर कुछ रेंग रहा है मैने देखा तो ये दीप्ति थी जो अपने अंगूठे से मेरे पर को रगड़ रही थी मैने अपने पैरो को थोड़ा साइड मे कर लिया पर फिर कुछ देर बाद वो वैसा ही करने लगी



हम कई लोग थे तो इतने लोगो मे मैं दीप्ति को मना नही कर पाया तो उसको छेड़खानी करने दिया फिर हम बाते करते करते ही सो गये मुझे लगा कि कोई मेरे बदन पर हाथ फेर रहा है तो मैं जाग गया मैने देखा कि दीप्ति मेरे पास लेटी हुई है और उसका हाथ मेरे पयज़ामे के अंदर मेरे लंड पर था मैने पाजामे के उपर से ही उसके हाथ को पकड़ लिया और फुसफुसाते हुए कहा कि ये तुम क्या कर रही हो


तो उसने अपनी उंगली मेरे होंठो पर लगाई और मुझे चुप रहने को कहा और मेरे लंड को अपनी मुट्ठी मे भर के सहलाने लगी मेरी सिचुयेशन टाइट हो गयी आस पास सारे भाई बहन सो रहे थे और दीप्ति तो भी मेरी बहन ही लगी थी ना कुछ देर वो मेरा लंड सहलाती रही फिर उसने मेरा हाथ पकड़ा और मुझे खीच कर एक कमरे मे ले आई



ये कोई स्टोर रूम था उसने जल्दी से दरवाजा बंद कर दिया और मुझसे लिपट गयी और मुझे चूमते हुए बोली कि ओह!!!!!!!! ****** जब से तुम आए हो मेरी नज़र तुमसे हट ही नही रही कितने हॉट हो तुम उसने दुबारा से मेरे लंड को पकड़ लिया और उसे हिलाने लगी मुझे समझ ही नही आ रहा था कि ये क्या हो रहा है मैने कहा दीप्ति तुम्हे पता है ना तुम क्या कर रही हो थोड़े दिन मे तुम्हारी शादी है



दीप्ति फुसफुसाती हुई बोली तुम शादी की टेन्षन मत लो और मुझ पर फोकस करो कहते ही उसने अपने होठ मेरे होंठों पर रख दिए और मुझे किस करने लगी और नीचे मेरे लंड को पूरे दम से हिलाए जा रही थी दीप्ति मेरी कज़िन थी और उपर से वो डाइरेक्ट ही मुझ पर पिल पड़ी थी तो मुझे अजीब सा लग रहा था ज़बरदस्ती का सेक्स अब कॉन करना चाहे मैने दीप्ति को अपने से दूर किया और कहा कि ये ठीक नही है




वो वापिस मुझसे चिपकती हुवी बोली क्या ठीक नही है मैं प्यासी हू मेरी प्यास बुझाना तुम्हारा कर्तव्य है और फिर अपने कजिन से चुदने मे कैसी बुराई ये कह कर वो नीचे बैठी और मेरे लंड को अपने मूह मे भर लिया और चूसने लगी अब लंड ठहरा लंड वो कहा इंसानी रिश्तो को समझता है और मैं तो पहले ही रिश्तो को भूल चुका था मैने भी सोचा कि चल अब जो हो रहा है होने दे जब ये ही तैयार है तो तू भी थोड़ा मज़ा ले लेता हू




दीप्ति नीचे बैठ कर मेरा लंड चूस रही थी और मैं उसके बालो को सहलाने लगा 5-7 मिनिट बाद वो खड़ी हुई और मुझे किस करने लगी मैं अपना हाथ नीचे ले गया और उसकी पाजामी को नीचे सरका दिया और उसके कुल्हो पर हाथ फेरने लगा मेरे स्पर्श से दीप्ति उत्तेजित होने लगी कुछ देर की चूमा चाटी के बाद मैने उसकी टी-शर्ट को उपर करके निकाल दिया और उसकी ब्रा के उपर से ही उसके बूब्स प्रेस करने लगा



उसके मूह से सिसकारिया निकलने लगी तो मैने फुसफुसाते हुआ कहा कि ज़्यादा आवाज़ मत करो बाहर किसी ने सुन लिया तो मुश्किल हो जाएगी और उसकी ब्रा को खोल दिया उसके बोबे थोड़े छोटे साइज़ के थे तो मैं उनको चूसने लगा दीप्ति के बदन मे बिजलिया रेंगने लगी वो मेरे चेहरे को अपनी छातियो पर दबाने लगी इतना टाइम नही था कि खुल के सेक्स नही किया जा सकता था मैने कहा जल्दी से कर लेते है वो बोली हम मुझसे भी रुका नही जा रहा है



मैने उसकी कच्छि को नीचे सरकाया और चूत को अपने हाथ से सहलाने लगा वहाँ पर एक भी बाल नही था और वो पूरी गीली भी थी तो मेरी उंगलियाँ फिसलने लगी मैने एक उंगली धीरे से उसकी चूत मे सरका दी और उसके होंठो को चबाने लगा दीप्ति मुझसे बुरी तरह से चिपक गयी थी और पूरा सहयोग कर रही थी फिर मैने उसको वही पर लिटा दिया और उसकी टाँगो को खोलते हुए लंड को चूत के मूह पर लगा दिया



जैसे ही सुपाडा अंदर जाने लगा दीप्ति का बदन टाइट होने लगा वो बोली दर्द हो रहा है मैने कहा पहले कभी किया नही क्या तो वो बोली किया है पर तुम्हारा बहुत मोटा है थोड़ा आराम से डालो मैने कहा इसकी मर्ज़ी है जैसे जाएगा वैसे ही जाएगा मैने दीप्ति पर अपनी पकड़ मजबूत की और एक तेज धक्का लगाते हुए लंड को उसकी चूत मे घुसाने लगा



दीप्ति मेरे शोल्डर पर काट ते हुए बोली कि आराम से डालो ना मैने कहा दो मिनिट रुक जा फिर सब सही हो गा और एक और शॉट मारते हुवी लंड को और अंदर डालने लगा दीप्ति की आँखे फैल गयी वो दर्द से कराहने लगी तो मैने उसके होंठो को अपने मूह मे भर लिया और उसके बदन को सहलाने लगा बेहद कसी हुई योनि थी उसकी थोड़े समय बाद मेरा लंड उसकी योनि मे सेट हो गया तो मैं उसकी रेल बनाने लगा



वो बोली कितना बड़ा है तुम्हारा मेरी तो आज फट ही गयी लगता है मैने कहा तू थोड़ी देर चुप रह ज़रा वो बोली मेरी पीठ पर फरश चुभ रहा है तो मैने उसको खड़ी किया और खड़े खड़े ही उसकी लेने लगा गुज़रते पलों के साथ हमारी साँसे भारी होने लगी और अंदर गर्मी भी बहुत थी तो पसीना आना शुरू हो गया था पर जब चुदाई का बुखार चढ़ा हो तो और बातों पर ध्यान कहाँ जाता है



हम दोनो एक दूसरे से लगे पड़े थे मैं उसके अंग अंग को चूमते हुवे उसको चोद रहा था फिर मैं उसकी चूची पीने लगा तो दीप्ति के तन बदन मे आग लग गयी वो लंबी लंबी साँसे लेते हुए चुदाई का मज़ा ले रही थी ना वो हर मान रही थी ना मैं अब मैने उसको पंजो के बल झुकाया और उसकी पतली कमर को थामते हुवे फिर से उसकी छोटी सी चूत मे मे लंड को उतार दिया



मैने एक हाथ उसकी गर्दन मे डाला और लगा ताबड तोड़ धक्के लगाने मे दीप्ति भी अपने कुल्हो को हिला हिला कर चुदाई मे सहयोग कर रही थी घपा घप चुदाई चल रही थी पर जिस चीज़ की शुरुआत होती है उसका अंत भी तो होता है ना कोई आधे घंटे तक एक दूसरे मे समाए रहने के बाद दीप्ति का बदन अकड़ गया और वो झड़ने लगी मैं भी बिल्कुल किनारे पर आ गया था मैने कहा अंदर ही डिसचार्ज हो जाउ क्या तो वो बोली नही बिल्कुल नही तो मैने जल्दी से लंड को बाहर निकाला और उसके कुल्हो पर ही अपने पानी की धार गिरानी शुरू कर दी



और फिर दीवार की सहारे खड़ा हो गया कुछ पलों बाद हमारी साँसे दुरुस्त हुई तो दीप्ति ने अपने कपड़े पहने और मुझे किस करके खिसक ली वहाँ से मैने भी अपने कपड़े डाले और बाहर आ गया मैने टाइम देखा तो सुबह के तीन बज रहे थे सभी लोग सोए पड़े थे पर मेरी नींद उचट गयी थी मैन मटके से गिलास भरा और पानी पीने लगा अब नींद तो आनी नही थी तो मैं एक कुर्सी पर बैठ गया और सोचने लगा



थोड़ी देर बाद दीप्ति भी मेरे पास आकर बैठ गयी और बोली कि नाराज़ हो मुझसे मैने कहा तुमने जो भी किया ग़लत किया वो मेरा हाथ पकड़ की बोली कुछ भी ग़लत नही हुआ है और फिर यंग एज मे ये सब तो होता ही रहता है मैने कहा तुम्हारी बात ठीक है और मैं तो वैसे भी बहुत ब्रॉडमाइंडेड हू पर ना जाने क्यो अच्छा नही लग रहा है



दीप्ति बोली कॉफी पियोगे मैने कहा इस टाइम कॉन बनाएगा वो बोली तुम बैठो मैं दो मिनिट मे बना कर लाई और थोड़े टाइम बाद ही हम लोग कॉफी की चुस्कियाँ लेते हुए बात करने लगे मैने कहा तुम्हारे हज़्बेंड को पता चलेगा कि तुम वर्जिन नही हो तो वो क्या सोचेगा तो वो बोली ओह! कम ऑन आजकल कॉन इन सब बातों के बार मे सोचता है और 99% लड़किया तो शादी से पहले ही वर्जिनेटी लूज कर देती है



मैने कहा बात तो सही है पर फिर भी अजीब सा लग रहा है तो उसने कहा क्योंकि मैं बहन हू तुम्हारी इसलिए अगर मेरी जगह कोई और होती तो फिर गिल्ट नही होता तुम्हे और वैसे भी हर कोई किसी ना किसी की बहन होती है और मत भूलो हम दोस्त पहले है और अब सेनटी होना बंद करो मूड को फ्रेश करो तो मैं एक फीकी हसी हँस पड़ा फिर हम ने कुछ देर और बाते की और कुर्सी पर बैठे बैठे ही सो गये

सुबह जब मेरी आँख खुली तो बुआ चाइ लेके मेरे सामने खड़ी थी वो बोली अरे यहाँ कॉन सोया पड़ा था उपर नींद नही आई क्या ज़रूर सबने तंग किया होगा तुझे मैने कहा बुआ जी ज़रा सांस तो ले लो ऐसा कुछ नही है बस ऐसे ही इधर आके बैठा था फिर ना जाने कब आँख लग गयी तो वो बोली चल चाइ पी ले और जल्दी से रेडी हो जा आजकई काम है मैने कहा काम करने ही तो आया हू तो वो मुस्कुरा पड़ी और बोली तू नही सुधरेगा



नहा धोकर तैयार होने मे ही दस बज गये थे फिर खाना वाना खाकर हम मस्ती कर ही रहे थे कि बुआ आ गयी और बोली कि मुझे कुछ सदियो के ब्लाउज लेने सहर तक जाना है मेरा नाम लेते हुए वो बोली तू चल मेरे साथ इधर बोर हो जाएगा तो मैने कहा ठीक है जी चलिए वो बोली तू बाइक स्टार्ट कर मैं अभी आती हू और फिर हम चल पड़े पास के सहर मे जो कोई 20 किमी दूर था



मैने बाइक मेन रोड पर लगाई ही थी कि बुआ बोली बाइक को मोड़ ले और कच्चे रास्ते पर ले उधर से चलेंगे तो बुआ मुझे रास्ता बताने लगी और हम चल पड़े कोई 7-8 किमी चलने के बाद थोड़ा सा सुनसान सा इलाक़ा था एक साइड मे कच्चा रोड था और दूसरी साइड मे गन्ने के खेत थे थोड़ी खाली सी जगह देख कर बुआ बोली कि बाइक को यही लगा ले मैने बाइक इस तरह से छुपाई की किसी को दिखे नही और फिर बुआ गन्ने के खेत मे घुस गयी मुझे लेके



खेत के काफ़ी अंदर मैने थोड़ी सी खाली जगह बनाई और बुआ को अपने से चिपका लिया और उनके गुलाबी होंठो को चूसने लगा पिछले कई दिनो से चूत की बरसात हो रही थी पर बुआ की बात सबसे अलग थी दस पंद्रह मिनिट तक अच्छे से उनके होंठो का रास्पान किया मैने फिर मैने बुआ की सलवार का नाडा खोला और कच्छि समेत सलवार को उतार कर सावधानी से साइड मे रख दिया ताकि वो गंदी ना हो बुआ नीचे से पूरी नंगी हो चुकी थी



गुज़रते समय के साथ बुआ का जिस्म और भी गदरा गया था मैं उनके चुतड़ों पर थप्पड़ मारता हुआ बोला डार्लिंग तुम तो और भी गदरा गयी हो वो बोली सब तेरे कारण ही हुवा है पिछली बार तूने जो दमदार चुदाई की है सब उसी का असर है बात करते करते बुआ ने अपना सूट और ब्रा भी उतार कर साइड मे रख दिया मैने भी अपने कपड़े उतार दिए बुआ बोली तेरे लिए नंगी तो हो गयी हू पर कोई इधर आ ना निकले मैने कहा बुआ आप चिंता ना करो मैं हू ना



बुआ मेरे लंड को अपनी मुट्ठि मे भरती हुई बोली कि ये तो पहले से भी तगड़ा हो गया है मैने कहा सब आपकी चूत के पानी का कमाल है मैं बुआ को फिर से किस करने लगा बुआ मुझसे चिपक गयी और मेरे लंड को अपनी मस्त चूत पर रगड़ने लगी उन्होने अपना मूह थोड़ा सा खोला और अपनी जीभ मेरे मूह मे सरका दी तो मैं उसको चूसने लगा बुआ मुझसे ऐसी लिपट गयी जैसे चंदन के पेड़ से कोई नागिन लिपटी हो उनकी मस्त जंघे मेरी जाँघो से रगड़ खा कर मेरे लंड को और जोश चढ़ा रही थी



एक जबर दस्त किस के बाद वो बोली अभी चूसने-चूसने का टाइम नही है और जगह भी नही है तुम सीधा काम तमाम करो फिर कोई मोका मिलेगा तो देखेंगे और घूम कर पंजो के बल झुक कर खड़ी हो गयी उनकी विशाल नितंब मेरे लंड के सामने आ गये मैने उनकी चूत पर ढेर सारा थूक लगाया और अपने लंड को चूत के छेद पर लगा दिया बुआ ने अपनी गान्ड को पीछे करके मुझे अंदर घुसाने का इशारा किया



तो मैने धक्का लगाया और लंड उनकी मस्तानी चूत की फांको को अलग करता हुआ चूत मे जाने लगा बुआ ने एक सिसकी ली और बोली जल्दी से पूरा अंदर डालो मैं तुम्हारे लंड को अपने अंदर लेने को मरी जा रही हू तो मैने दो धक्को मे ही पूरा लंड बुआ की गरम चूत मे पहुचा दिया और आगे हाथ ले जाकर चूत के दाने को मसल्ने लगा बुआ के पूरे शरीर मे करेंट दौड़ गया वो धीमे से बोली कि बस बेटा अब जल्दी से काम पूरा कर दे टाइम नही है अपने पास




मैने कहा अभी लो और मैने लंड को चूत के अंदर बाहर करने लगा बुआ बोली मेरे बोबो को दबा तो मैने कहा थोड़ी सी उपर हो जाओ तो बुआ उपर को हो गयी और मैं आसानी से उनके बोबो को दबाते हुवे उनकी चूत मारने लगा बुआ आहे भरने लगी मेरा लंड उनकी चूत मे जाके आज निहाल हो गया था मस्ती के संसार मे दीन दुनिया से बेख़बर हम दोनो एक दूसरे की जिस्मो की प्यास बुझाने मे लगे हुए थे





ओह मेरी प्यारी बुआ कितनी मस्त हो आप काश आप मेरी वाइफ होती तो पूरी जिंदगी आपको अपने लंड पर बिठाये रखता बुआ बोली ओह बेटा अपनी पत्नी समझ कर ही चोद मुझे जब से तेरा लंड लिया है तेरे फूफा से मज़ा ही नही आता बस यही सोचती रहती हू कि कब कैसे तुझसे चुदु शाबाश बेटा ऐसी ही धक्के लगा फाड़ दे मेरी इस निगोडी चूत को आज इसकी ससेरी खुजली मिटा दे चोद दे अपनी बुआ की फाड़ दे अपनी बुआ की चूत को रगड़ दे मुझे और तेज और तेज चोद मुझे

मैने कहा मेरी जान बहुत करारी है तू मैं बेदर्दी से बुआ के उभारों को मसलता हुआ उनकी चुदाई कर रहा था और फिर आधे- पोने घंटे तक दमदार चुदाई के बाद हम लोग साथ ही झड गये मैने बुआ की रसीली चूत को अपने वीर्य से तर कर दिया फिर हम वहाँ से निकले और सहर पहुचे बुआ ने काफ़ी खरीदारी की वापसी मे उसी खेत मे बुआ को एक बार और चोदने के बाद हम वापिस आ गये

जब हम वापिस आए तो उनके घर की तरफ जाने वाली गली मे एक गाड़ी खड़ी थी गली आगे थोड़ी तंग थी तो गाड़ी आगे नही जा सकती थी तो मैने भी बाइक रोक ली बुआ बोली अपने ही मेहमान आए लगते है मैं आगे जाती हू तू आता रहियो मैने कहा जी ठीक है पर फिर कुछ ऐसा हुआ जो मैं कभी भूल ही नही सकता तब पहली बार मुझे पता चला कि सर्प्राइज़ किसे कहते है



उस गाड़ी से पहले एक रोबदार आदमी बाहर निकला देखते ही मैं समझ गया कि ये कोई अपने ही डिपार्टमेंट का बंदा है फिर एक औरत निकली और गली मे आगे को बढ़ गये पर फिर जो कुछ हुआ आप लोग विश्वाश नही करेंगे और सच कहूँ तो मुझे भी उस टाइम विश्वास नही हुआ गाड़ी से जो तीसरी जनि उतरी जैसे ही वो पलटी मेरा दिल साला इतनी ज़ोर से धड़का कि सीने मे दर्द सा होने लगा



वो कोई और नही उर्वशी थी मैं तो उसको देखते ही सब कुछ भूल ही गया पर उसकी नज़र मुझ पर नही पड़ी उसने गाड़ी का गेट बंद किया आगे की तरफ बढ़ चली तभी मैने बाइक का हॉर्न बजाया तो उसने पलट कर देखा और फिर हैरत से उसके हाथो से बॅग छूट गया उसने अपना हाथ अपने मूह पर रख लिया वो जैसे शॉक्ड हो गयी थी मैने बाइक को स्टॅंड पर लगाया और उसकी तरफ बढ़ निकला



उर्वशी भाग कर आई और मेरे गले लग गयी और बोली फोजी जाट तू यहाँ पर मैने कहा पागल जाटनी तू यहाँ वो मेरे गले लगी हुई थी और गली के लोग हमें ही देख रहे थे तो मैने उसको अपने से अलग किया और इशारो मे समझाया कि लोग देख रहे है तो वो बोली कमिने कुत्ते कित मर गया था तू और तेरा वो फोन कित सै ला दे उसने तो तोड़ के फेक दूँगी कदे मिले ही ना सै वो तो



मैने कहा ओ मेरी झाँसी की रानी शांत होज़ा और घर चल फिर सब बता ता हूँ तभी बुआ का लड़का आ गया मैने कहा बाइक को ले आइयो और मैने उर्वशी का बॅग उठा लिया और घर आ गये वो बोली तू के करे सै अठे मैने कहा मेरी बुआ की ससुराल है यहाँ और हम बात करते करते घर के अंदर आ गये मैने कहा तू यहाँ कैसे तो वो बोली बुआ के ससुर जी का नाम लेते हुए कि वो मेरे पापा के मामा जी है मैने कहा है मेरी तकदीर बड़ी मुश्किल से तुमसे पीछा छुड़ाया था तुम यहाँ पर भी आ गयी



तो उर्वशी मेरी चेस्ट मे मुक्का मारते हुवे बोली कमिने एक बार सब रिश्तेदारों से मिल लू फिर तेरी खबर लूँगी तो उर्वशी अंदर चली गयी मैं बैठक मे चला गया वहाँ उर्वशी के पिता भी थे तो फूफा जी ने मेरा उनसे परिचय करवाया तो मैने कहा सर मैं आपको जाता हू आप ब्रिगेडियर. ***************** है ना तो वो बोले बेटे आप मुझे कैसे जानते है तो मैने कहा सर मैने आइएमए देहरादून मे ही ट्रैनिंग ली है और इसी एअर पोस्टिंग ली है



तो वो बोले आइ’म इंप्रेस्ड फिर कुछ लंबी बाते ही खीच गये वैसे भी दो आर्मी वाले बैठ जाए तो फिर माहौल अलग हो जाता है मुझे खिसकने का मोका जब मिला जब प्रिया मुझे बुलाने आई उसने कहा कोई आपको चॉबारे मे बुला रहा है मैं समझ तो गया था कि उर्वशी ही होगी मैं तेज़ी से सीढ़िया चढ़ता हुआ उपर पहुच गया उर्वशी बोली आजा मेरे प्रीतम तेरा ही इंतज़ार कर रही थी मैं



मैने कहा तुझे जो भी सज़ा देनी है दे दे पर पहले मेरी बात सुन ले और फिर मैने उसको सारी कहा नी बताई तो वो एमोशनल हो गयी वो बोली इतना सब हो गया तेरे साथ और मुझे नही बताया तूने तो खैर मुझे अपनी समझा ही नही मैं कहा यार फोन टूट गया था तो तेरा कॉंटॅक्ट लॉस्ट हो गया वो बोली और कही सेव नही कर सकता था क्या चल अब तू सबसे पहले तेरा नंबर मुझे दे



तो मैने उसको अपना फोन नंबर दे दिया उर्वशी मेरे पास आई और बोली फोजी पता है कितनी राते मैने तेरी याद मे जाग जाग के काटी है हर बार तेरा फोन नही मिलता था तो बहुत बुरा लगता था फिर वो थोड़ा सा और आगे आई उसके और मेरे बीच मे बस कुछ इंच का ही अंतर था और फिर उसने आगे बढ़ कर मुझे किस कर लिया किस करके हम हटे ही थे कि बुआ आ गयी और हम दोनो को साथ देख कर बोली तू उर्वशी को कैसे जानता है

मैने कहा बुआ ये एक लंबी कहानी है बाद मे बताउन्गा और अभी आप हमें कुछ देर अकेला छोड़ दो



वो बोली पर तुम्हे ऐसे देखेगा तो क्या सोचेगा जल्दी ही नीचे आ जाना मैने कहा ठीक है और कुछ देर बाद हम नीचे आ गये उर्वशी अंदर लॅडीस के पास चली गयी तभी दीप्ति मेरे पास आई और बोली तेरा बाद लक है आज मेरी डेट्स आ गयी है वरना आज भी तुझे मज़ा करवाती मैने कहा चलो मेरी जान छूटी अब उसको कोन समझाए कि अपनेको कोई कमी थोड़ी है चूतो की



सारे घर मे मेहमान भरे पड़े थे तो समझ नही आ रहा था कि कहा जाउ मैं चाइ पी रहा था वही सीढ़ियो पर बैठ कर कि उर्वशी का मेसेज आया लिखा था रात को चॉबारे की छत पर मिलते है मैने रिप्लाइ ही नही किया था अब इतने मेहमानों मे कैसे रिस्क ले वो तो ठहरी पागल जाटनी पर अपनी बुआ का घर था यहाँ पर तो शराफ़त ज़रूरी थी



फिर बुआ मेरी तरफ आई तो मैने कहा बुआ इतने आदमियो को देख कर मेरा मन नही लग रहा यहाँ पर वो बोली बेटा शादी है तो मेहमान आएँगे ही ना दो दिन बाद शादी है अड्जस्ट तो करना ही पड़ेगा ना मैने कहा बुआ मेरा जी नही लग रहा और उपर से उर्वशी भी है वो थोड़ी पागल टाइप है मुझसे ही चिपकी रहेगी मैं नही चाहता कि मेरी वजह से कल को आपको कोई कुछ कहे



वो भी मेरे पास ही बैठ गयी और बोली पहले तू बता तू उसको कैसे जानता है तो मैने बुआ को सारी कहा नी बता दी बुआ बोली तो ये बात है वैसे लड़की अच्छी है मैं तो इसको बचपन से जानती तू कर ले इस से ब्याह मैने कहा क्या बुआ कुछ भी बोलती हो फिर बुआ बोली रात तक इंतज़ार कर फिर हम अपने घर चलेंगे कुछ मेहमान उधर भी होंगे पर मैं अड्जस्ट कर लूँगी कुछ भी करके चल अभी तू अपना मूड ठीक करले

मैने गोर किया कि सब भाई बहन बस अपनी ही पंचायत मे लगे हुवे थे वैसे भी टाइम तो निरंतर बदल रहा ही था तो लोग भी बदल रहे थे प्रिया मेरे पास आकर बैठ गयी और बोली भाई आप आज कुछ उदास लग रहे हो मैने कहा नही यार ऐसी तो कोई बात नही है बस इतने लोगो को एक साथ देखने की आदत नही है ना तो वो बोली पर भाई फोज मे तो बटालियन होती है मैने कहा होती है पर वहाँ भी हम ऐसे नही रहते



फिर भाई लोग और उसके दोस्त भी आ गये और बोली कि भाई रात मे कुँए पर ड्रिंक्स का प्रोग्राम है आप आओगे ना तो मैने कहा नही यार आज कुछ तबीयत ठीक नही है तुम लोग ही एंजाय करो तो वो लोग अपना जुगाड़ करने चले गये मैं जाके फूफा की मंडली मे बैठ गया शाम तो हो ही गयी थी तो उधर भी बस दारू-शरु की ही प्लॅनिंग हो रही थी




अब मजबूरी थी तो उधर ही बैठा रहा बॉटल पर बॉटल खुल रही थी उर्वशी के पापा बोले ऑफीसर तुम भी एक शॉट लो मैने कहा नही सर मैं घर पे नही पीता तो वो बोले अरे खुशी का महॉल है कोई बहाना नही चलेगा और मेरे हाथो मे एक पेग दे दिया तो मैने भी फिर दो-तीन पेग टिका ही लिए उनकी फालतू की पार्टी जब मुझे बोर करने लगी तो मैं खाना खाने के लिए आ गया



प्रिया भी मेरे साथ ही आ गयी और हम दोनो डिन्नर करने लगे उर्वशी कही दिखाई नही दे रही थी अब शादी का घर था तो सोना किसे था लोग बेवजह इधर से उधर भटक रहे थे मैं कोफ़ी के सीप लेता हुआ चूतिया ड्रामे को देखे जा रहा था तभी मेरा फोन बजा बुआ की कॉल थी उन्होने कहा कि बस थोड़ी देर मे चलेंगे अपने घर कुछ मेहमान है उनको खाना करवा दूं फिर चलते है मैने कहा ठीक है



कोई आधे घंटे बाद बुआ दो बूढियो के साथ निकली और मुझे बोली आजा फिर हम बुआ की घर चल पड़े उसका घर बस दो गली दूर था बुआ ने अपना बेडरूम खोला और मुझे कहा कि तू आराम कर मैं थोड़ी देर मे आउन्गि मैने कहा मैं ज़रा नहा लेता हू मैने देखा कि इधर ज़्यादा मेहमान नही थे और तकरीबन बुजुर्ग ही थे इसलिय उनके रहने की व्यवस्था इधर की गयी थी



मैं नहा कर आया तो रात के11 बज गये त बुआ कमरे मे ही थी उन्होने कपड़े बदल लिए थे साड़ी निकाल कर अब वो एक मॅक्सी मे थी मेरे अंदर आते ही उन्होने गेट बंद किया और लाइट बुझा दी हम दोनो बेड पर लेट गये मैने कहा बुआ आप मुझे अपने बेडरूम मे ले आई अगर फूफा आ गये तो वो बोली तू टेन्षन ना ले उधर दारू की पार्टी चल रही है और तू तो जानता ही है कि तेरे फूफा को तो बस मोका चाहिए पार्टी करने का वो नही हिलेंगे उधर से और फिर मुझ तेरे लंड का चस्का लग गया है तो थोड़ा सा रिस्क तो ले ही सकती हू ना मैने कहा मेरी प्यारी बुआ



बुआ फटा फट नंगी हो गयी और मेरे कच्छे को उतारते हुवे बोली दो बार आज ही चुद चुकी हू पर चूत फिर भी फडक रही है मैने कहा चिंता ना करो डार्लिंग सुबह तक आपको लंड पर बिठाए रखूँगा और गान्ड भी मारूँगा तो बुआ बोली जो मारनी है मारले मिटा दे मेरी खुजली को तो मैं उनकी मस्त 38 इंची छातियो को दबाने लगा तो वो सिसकारिया भरने लगी और बोली ज़ोर से दबा इनको इस दर्द का भी अपना ही मज़ा है



मैने कहा बुआ आज तो रोल मे लग रही हो वो बोली तुझे तो खुश करना ही पड़ेगा ना वरना तू कहेगा कि बुआ ने खातिरदारी नही की और फिर अपना बोबा मेरे मूह मे देने लगी तो मैं उन्हे निप्पल को दाँतों से काटने लगा बुआ अब मेरी गोदी मे चढ़ आई उनकी नंगी गान्ड पर लंड रगड़ खाने लगा मैने कहा अभी तो बस गान्ड मे ही डालूँगा कई दिनो से किसी की गान्ड नही चोदि है



थोड़ी देर बाद बुआ मेरी गोदी से उतर गयी और फिर मेरे लंड पर टूट पड़ी मैने कहा आराम से चूसो मैं कही भागा थोड़ी ना जा रहा हू तो उन्होने अपनी जीभ को सुपाडे पर फेर दी मैं तो बहाल हो गया उनकी इस अदा पर मैने बुआ के बालो को पकड़ लिया और लंड उनके मूह मे अंदर बाहर करने लगा घुप घुप करते हुए मैं उनके मूह को चोदने लगा था



काफ़ी देर तक लंड को उनके मूह मे रखने के बाद मैने अब उनको बेड पर पटका और उनकी गान्ड को सहलाने लगा और अपनी उंगली को गान्ड मे डालने लगा बुआ बोली ऐसे नही जाएगी रूको मैं तेल देती हू वो अंधेरे मे ही तेल की शीशी ले कर आई और मुझे दे दी मैने ढेर सारा तेल उनकी गान्ड पर लगाया और अपने लंड पर भी मैने कहा करूँ वो बोली हाँ तो बुआ ने अपने हाथ पीछे ले जाते हुवे अपने कुल्हो को खोल लिया और मैने अपने सुपाडे को उनके छेद पर रख दिया



और थोड़ा सा दवाब डालते हुए अपने सुपाडे को अंदर घुसाने लगा बुआ का छेद फैल गया और उनके मूह से दर्द भरी आवाज़ निकली मैने बुआ को तड़पाने के लिए सुपाडे को छेद मे फसा दिया और रुक गया बुआ कराहती हुवी बोली तड़पाता क्यो है एक तो तेरी खुशी के लिए गान्ड मरवा रही हू और तू तडपा रहा है मैने कहा अभी ले मेरी जान अभी अंदर करता हूँ और थोड़ा थोड़ा करके लंड को अंदर डालने लगा एक तो उनकी गान्ड इतनी टाइट थी तो रगड़ खा खा कर लंड अंदर जा रहा था


जब जब मैं लंड को अंदर से बाहर खीचता लगता कि उनकी गान्ड का छल्ला भी साथ ही बाहर को निकल आएगा कई दिनो बाद किसी की गान्ड मे लंड गया था तो जोश भी कुछ ज़्यादा ही था और जुनून तो हद से ज़्यादा हमेशा की तरह मैं उनके उपर लदा हुआ अब अपनी रफ़्तार को कुछ तेज करता हुवा गान्ड मे दना दन लंड को पेलने लगा था और बुआ मेरे नीचे दबी हुई पिस रही थी




मैं उनके गालो को अपने दाँतों से काटने लगा तो वो मना करते हुवे बोली कि ऐसा ना कर गाल पर निशान लग गये तो मेरे लिए मुसीबत हो जाएगी मैने कहा डरती हो क्या किसी से तो वो कुछ ना बोली काफ़ी देर हो गयी थी उनकी गान्ड मारते हुए तो बुआ भी अब परेशान होने लगी थी वो बोली हुआ नही क्या तेरा अभी तक मैने कहा पता नही निकल ही नही रहा है

वो बोली अब बस उतर जा मेरे उपर से कब तक तेरा बोझ झेलती रहूंगी तो मैं उतार गया और बुआ को अपनी गोदी मे बिठा लिया बुआ ने कुछ पॅलो तक चूत पर लंड को रगड़ा और फिर उसे अपनी चूत मे लेते हुवे मेरी गोदी मे बैठ गयी मैने अपने होंठो मे उनके निचले होठ को दबा लिया और चूसने लगा क्या करारी जवानी थी उनकी बुआ अपनी बड़ी सी गान्ड को उचका उचका कर लंड पर कूद रही थी



उनके गुलाबी होंठो का सहद समान रस पीते हुए चुदाई का मज़ा बड़ा ही जबरदस्त था मैं और वो दोनो एक दूसरे मे खो गये थे थोड़ी देर बाद वो मेरी गोद से उतरी और खड़ी हो गयी मैने वही पर उनकी टाँगो को थोड़ा सा खोला और फिर से लंड को चूत मे डाल दिया और अपने हाथ आगे करके बोबो को थाम लिया और लगा उनको चोदने कभी मैं तेज तेज धक्के लगाता कभी बिल्कुल हौले हौले बुआ किसी शराबी की तरह मेरी बाहों मे झूल रही थी



और फिर ऐसे ही पूरी रात हम दोनो का प्रेमलाप चलता रहा तबीयत से चोदा उनको और उन्होने भी तबीयत से अपने जिस्म के अंग अंग को मेरे हवाले किया कमरे का कोई ऐसा कोना नही जहाँ मैने उनको नही रगड़ा वो रात भी मेरे लिए एक यादगार रात बन गयी थी सुबह साढ़े 5 बजे मैं उनके कमरे से निकला और बाहर की तरफ चला गया मैं थोड़ा खेतो की ओर घूमने चला गया

फ्रेश होकर दातुन करते हुए मैं आ ही रहा था कि मुझे रास्ते मे प्रिया और उर्वशी मिल गये तो उर्वशी ने प्रिया को कहा कि तू ज़रा आगे चल मैं अभी आती हू और मुझे गुस्से से देखते हुए मेरी ओर आने लगी फिर वो बोली कमिने दिखा दी ना तूने अपने वाली वैसे तो बड़ा दोस्ती का दम भरता है और कल दो पल भी ना दे सका मैने कहा शांत होज़ा मेरी झाँसी की रानी और मेरी बात सुन



वो बोली ना सुन ना मने कुछ भी तेरा और आइन्दा से बात ना करियो मेरे से मेरा दिमाग़ खराब हो रखा सै कुछ बोल दूँगी उल्टा सीधा मैने कहा यार बात तो सुन मैने प्रिया को कहा कि तू घर जा ये मेरे साथ बाद मे आ जाएगी तो उसने अजीब सी नज़रो से मुझे देखा और अपने कंधे उचकाते हुए चली गयी मैं उर्वशी के साथ वही पगडंडी पर बैठ गया और बोला कि यार कल बुआ ने मेहमानो के साथ ड्यूटी लगा दी थी अब उनको मना भी तो नही कर सकता था ना



पर आज का पूरा दिन तेरे साथ पक्का वाला प्रॉमिस करता हू चाहे कुछ भी हो जाए आज एक पल के लिए भी तुझसे जुदा नही होऊँगा तो वो बोली जा तू और तेरे वादे मैने कहा यार देख अब तू नाराज़ होगी तो मेरा जी भी नही लगेगा फिर थोड़ी मनुहार करके मनाया उसको दीप्ति की शादी मे बस आज का ही दिन था कल तो थी ही और फिर आज घरवाले भी आने वाले थे मैने कहा आज तुझे अपनी फॅमिली से मिलवाता हू बाते करते करते हम घर आ गये




आते ही प्रिया ने मुझे चाइ पकड़ाई और बोली भाई क्या सीन है उर्वशी के साथ और कैसे जानते हो मैने कहा लंबी कहानी है वो बोली बताओ ना क्यो भाव खा रहे हो मैने कहा तू क्या करेगी जानके वो बोली बस ऐसे ही तो मैने शॉर्ट मे उसको सारी बात बता दी वो बोली वाह भाई आप तो बड़े छुपे रुस्तम हो एक काम करो सब घरवाले तो है ही आप बात कर्लो उस से शादी की मैने कहा अरे बताया ना वैसा कुछ नही है बस दोस्त है



वो मुझे छेड़ते हुए बोली की शुरू मे तो सब दोस्त ही होते है मैने कहा अच्छा जी तुझे बड़ा पता है फिर मैं उसके पास से चला आया आज बस चारो तरफ काम ही काम थे हर कोई लगा हुआ था कुछ रस्मे चल रही थी हलवाई लग गया था टेंट वाले अपना काम कर रहे थे तभी उर्वशी ने मेसेज किया कि यार मुझे कुछ अर्जेंट समान लेना है आ ज़रा सहर तक चलते है




हालाँकि मेरी बिल्कुल भी इच्छा नही थी पर उसका दिल भी तो नही तोड़ सकता था तो मैने कहा मैं गली के बाहर इंतज़ार करता हू फटाफट से आजा और फिर 10 मिनिट बाद उसे लेकर मैं उड़ चला गाँव से बाहर वो बाते करते हुए बोली तू तो मुझे भूल ही गया है मैने कहा यार ऐसी बात नही है कुछ हालत ही ऐसे हो गये थे और मुझे खुद नही पता कि मेरी ज़िंदगी किस ओर जा रही है



मैने बाइक साइड मे रोक दी और उसको कहा कि तुम तो सब कुछ जानती ही हो पर पिछले कुछ दिनो से बड़ा ही बैचैन सा रहता हू मैं पता नही कैसे एक उदासी सी मेरे अंदर घर कर गयी है कुछ समझ नही आता कि करूँ तो क्या करूँ वो बोली फोजी कुछ परेशानी है तो मुझे तो बता ही सकता है तो मैने कहा यार वो ही तो पता नही चल रहा है बस एक घुटन सी हो रही है



तो उर्वशी बोली शायद तुझे जॉब का प्रेशर है पर थोड़े दिन मे ही तू सिस्टम मे रम जाएगा मैने कहा हो सकता है पर आ अब चलते है वापिस भी आना है तो हम सहर पहुच गये उर्वशी ने अपनी खरीदारी की और दोपहर होते होते हम वापिस आ गये जब हम पहुचे तो देखा कि घर वाले भी आ गये थे तो फिर उनसे बाते होने लगी तभी प्रिया आ गयी और बोली कि कहाँ थे तुम



मैने खाना भी नही खाया तुम्हारे इंतज़ार मे मैने कहा चल तू खाना लेकर आ मैं अभी आया तो वो बोली उपर चॉबारे मे आजा ना मैं उपर गया तो पूरी मंडली वही पर जमा थी सबसे पहले मैने खाने पे ध्यान दिया फिर ऐसा उलझा कि दिन कैसे निकला कुछ पता ही नही चला शाम को हलवाई के पास से आया तो देखा कि उर्वशी मम्मी से चिपकी हुई थी और काफ़ी हँस हँस कर के बाते कर रही थी



मैने सोचा ये क्या खुराफात कर रही है पर तभी फूफा आ गये और कुछ काम करने को बोले मैं वापिस आया तो रात हो गयी थी डीजे लगा हुवा था तो बस डॅन्स वॅन्स ही चल रहा था तभी बुआ का लड़का आया और बोला भाई एक वोड्का का शॉट लोगे क्या तो मैने कहा एक क्यो दो-चार ले लेता हू तो मैने थोड़ी सी वोड्का गले के नीचे उतारी मंडली आज अलग ही मूड मे थी



और पूरी रात धमाल मचाने का प्रोग्राम था और पता नही क्यो मैं भी मस्ती के मूड मे आ गया उर्वशी ने मुझे इशारा किया कि आजा डॅन्स करते है अब मैं ठहरा फोजी आदमी एक बार जो शुरू हुआ तो फिर बस उर्वशी इतना अच्छा डॅन्स करती है उस दिन पता चला मुझे हम अपनी मस्ती मे मस्त थे पर मेरी मम्मी की नज़रो ने मेरी और उर्वशी की नज़रो को पकड़ लिया



और वो थी भी तो इतनी प्यारी अगले दिन मुझे बुआ से पता चला कि मम्मी को उर्वशी जच गयी है और दीप्ति की शादी के बाद वो उर्वशी के पेरेंट्स से हमारे रिश्ते की बात करने वाली है अब ये क्या हुआ मम्मी तो वैसे ही शादी के लिए पीछे पड़ी रहती है और फिर उर्वशी भी तो यही चाहती है मैं थोड़ा सा परेशान हो गया मैने चाची को ये बात बताई तो वो बोली मैं कुछ नही कर सकती इस मामले मे
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RE: हार तरफ चुत हि चुत (BIG & HOT STORY) - by Pagol premi - 06-12-2020, 08:59 AM



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