18-11-2020, 01:19 PM
से मै उपर ले आया और बिछा दिया वो बोली भैया बहुत बदमाश हो मैने छत का दरवाजा अंदर से बंद किया और दोनो बैठ गये उसने कहा भैया नाइटी मत उतारना ऐसे ही कर लो मैने कहा ठीक है अब वो बिना किसी टेन्शन के लेट गई मैने उसकी टांगो से उसकी नाइट उपर की और उसकी पेंटी को उतार दिया और उपर की ब्रा भी खोल दी और उसके बूब्स को आज़ाद कर दिया वो बोली कुछ मत निकालो ना मैने कहा कैसे होगा तो तब उसने अपनी नाइटी उपर तक उठा दी बूब्स तक वो पूरी नंगी हो गई थी मैने लोवर और बनियान पहनी थी दोनो निकाल दिये मेरा लंड तो तना हुआ था वो आयशा के बिल मे जाने के लिये तड़प मार रहा था उपर छत पर टेंट लगा था और चारो ओर से कवर था इसलिये कही से कोई देखने का खतरा नही था.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.