06-03-2019, 09:00 AM
कूकरी क्लास
जब उठी तो तीझरिया हो रही थी , नेट पर मैंने कुछ देखा एक दो फोन घुमाया और फिर उन्हें नंबर लगाया।
" हे आज शाम को आफिस से थोड़ा जल्दी निकलना , मिसेज तनेजा को जानते हो न , फेमस कूकरी एक्सपर्ट , उनके यहाँ मैंने तुम्हारे लिए टाइम बुक कर लिया है। "
मैंने उन्हें बोला।
" पर आज शाम को कैसे , मेरी कुछ क्लाएंट्स से मीटिंग शेड्यूल्ड है ,बड़ी इम्पोर्टेंट मार्केटिंग मीटिंग है , "
वो कुछ हिचकिचाते बीच में इंटरप्ट करते बोले।
" तुम आदमी लोग , कब सुधरोगे ,थोड़ी तो लिसनिंग एबिलिटी डेवलप करो , जब मैं बोल रही हूँ
तो चुपचाप पहले सुनो , समझो। "
मेरी आवाज अब थोड़ी कड़ी होगयी थी और वो भी समझ गए थे की उन्हें 'आफिस मोड ' से बाहर निकल आना चाहिए ,
जब मैं बोल रही हूँ , भले ही वो आफिस में बैठे हों।
" अब चुपचाप मुंह बंद करके सुनो , मिसेज तनेजा का एक हफ्ते का कूकरी कोर्स है ,सिर्फ ६-८ सीटें हैं , दो घंटे का ,
आज से शुरू हो रहा है। बड़ी मुश्किल से मैंने उन्हेंपटाया है तुम्हे लेने के लिए , खास तौर से मुगलाई ,अवधी ,…सब के सब नान वेज , और तेरे मायकेवालों ने तो वैसे भी कुछ सिखाया नहीं , वो लोग तो १८ वीं शताब्दी में रहने वाले ,
वहां तो लहसुन प्याज भी ,
और तुम को तो मालूम है मम्मी को नान वेज कितना पसंद है। खैर बड़ी मुश्किल से वो मानी है तो तुम टाइम पर , और हाँ वो स्वीट डिश भी एक सिखाएंगी तो मैंने मैंगो सूफले के लिए बोल दिया , अबतो तुम मैंगो खाने लगे हो।
हाँ एक बात और , वहां एप्रन कंपल्सरी है तो मैंने मिसेज डी मेलो को बोल दिया है एक पिंक एप्रन तेरे लिए अरेंज करने कोऔर हाँ वो जो तुम्हारी चाय समोसे वालीसो काल्ड इम्पॉरटेंट मीटिंग है , वो मिसेज डी मेलो ने आलरेडी रिशेड्युल्ड कर दी हैं। और हाँ टाइम पर जाना और एप्रन मत भूलना ".
मैंने फोन रखा भी नहीं था की मिसेज डी मेलो ,उनकी सुपर एफिसिसएंट सेक्रेटरी उनके कमरे में थीं ,
पिंक एप्रन के साथ।
" मेरे ख्याल से सर आपको निकलना चाहिए , पन्दरह मिनट में पहुंचना होगा आपको वहां। "
बड़ी मुश्किल से अपनी खिलहिलाहट दबाते मैंने फोन रखा।
मेरा तो मन कर रहा था की मिसेज डी मेलो को बोलूं की जरा अपनी पिंक लिपस्टिक दें दें उनको फ्रेशःअपहोने के लिए। लेकिन मैंने सोचा की चलो थोड़ा धीरे धीरे , उनकी ३० + गोवानीज सेक्रेटरी अब पूरी तरह मेरे पाले में थी।
ढाई तीन घण्टे बाद वो लौटे ,एकदम हैरान परेशान , थके बुझे।
मैंने मुस्कराहट रोकी , ये तो होना ही था।
बाकी सब कोर्स वाली औरते थीं ,और सब की सब नंबरी मर्दखोर।
मिसेज तनेजा कौन कम थीं , और ये बिचारे अकेले ,खूब रगड़ाई हुयी होगी।
लेकिन मैं भी छोड़ने वाली नहीं थी,
" अरे जरा जो आज सीख़ विख के आये हो , जरा बना के दिखाओ , मैंने सब चीजें तैयार कर के रख दी हैं। अच्छा चलो थके होगे , एक कप चाय बना लो , बल्कि दोकप , मेरे लिए भी। "
टफ हफ्ता था उनके लिए। लेकिन ८-१० नान वेज रेसिपीज उन्होंने अच्छी तरह सीख ली।
सबसे बढ़कर जो असली चीज होती है , कब धीमी आंच पे हलके भूनना है तो कब
और सब बढ़कर मुझे गुड्डी ,मेरी ननद की बाते याद आ रही थी ,
"मेरे भैया वो तो छूते भी नहीं है , आप के मायकेवालों की तरह नहीं।"
और एक बार जब मैंने बर्थडे पे पेस्ट्री मंगा ली थी ,लाख कहा मैंने एगलेस है पर वो छिपकली ,
' क्या पता , और फिर बर्तन तो वही होते हैं और आपको तो मालूम है यहाँ सब लोग एकदम , … "
और पेस्ट्री फेंकी गयी।
और अब रोज वही ,
मैरिनेट ,वाशिंग, क्लीनिंग ,सब कुछ,
एक मेरी 'पैंटी फ्रेंड ' थी ,उनके ग्रूप में उसने खूब मजे ले ले के सुनाया ,कैसे सब औरतें उनकी रगड़ाई करती थीं ,
सब मिल के ऐसे छेड़ती थीं की बस ,
मुझे अपने शुरू के दिन याद आ गए उनके मायके में जो मेरे साथ , ....
जब उठी तो तीझरिया हो रही थी , नेट पर मैंने कुछ देखा एक दो फोन घुमाया और फिर उन्हें नंबर लगाया।
" हे आज शाम को आफिस से थोड़ा जल्दी निकलना , मिसेज तनेजा को जानते हो न , फेमस कूकरी एक्सपर्ट , उनके यहाँ मैंने तुम्हारे लिए टाइम बुक कर लिया है। "
मैंने उन्हें बोला।
" पर आज शाम को कैसे , मेरी कुछ क्लाएंट्स से मीटिंग शेड्यूल्ड है ,बड़ी इम्पोर्टेंट मार्केटिंग मीटिंग है , "
वो कुछ हिचकिचाते बीच में इंटरप्ट करते बोले।
" तुम आदमी लोग , कब सुधरोगे ,थोड़ी तो लिसनिंग एबिलिटी डेवलप करो , जब मैं बोल रही हूँ
तो चुपचाप पहले सुनो , समझो। "
मेरी आवाज अब थोड़ी कड़ी होगयी थी और वो भी समझ गए थे की उन्हें 'आफिस मोड ' से बाहर निकल आना चाहिए ,
जब मैं बोल रही हूँ , भले ही वो आफिस में बैठे हों।
" अब चुपचाप मुंह बंद करके सुनो , मिसेज तनेजा का एक हफ्ते का कूकरी कोर्स है ,सिर्फ ६-८ सीटें हैं , दो घंटे का ,
आज से शुरू हो रहा है। बड़ी मुश्किल से मैंने उन्हेंपटाया है तुम्हे लेने के लिए , खास तौर से मुगलाई ,अवधी ,…सब के सब नान वेज , और तेरे मायकेवालों ने तो वैसे भी कुछ सिखाया नहीं , वो लोग तो १८ वीं शताब्दी में रहने वाले ,
वहां तो लहसुन प्याज भी ,
और तुम को तो मालूम है मम्मी को नान वेज कितना पसंद है। खैर बड़ी मुश्किल से वो मानी है तो तुम टाइम पर , और हाँ वो स्वीट डिश भी एक सिखाएंगी तो मैंने मैंगो सूफले के लिए बोल दिया , अबतो तुम मैंगो खाने लगे हो।
हाँ एक बात और , वहां एप्रन कंपल्सरी है तो मैंने मिसेज डी मेलो को बोल दिया है एक पिंक एप्रन तेरे लिए अरेंज करने कोऔर हाँ वो जो तुम्हारी चाय समोसे वालीसो काल्ड इम्पॉरटेंट मीटिंग है , वो मिसेज डी मेलो ने आलरेडी रिशेड्युल्ड कर दी हैं। और हाँ टाइम पर जाना और एप्रन मत भूलना ".
मैंने फोन रखा भी नहीं था की मिसेज डी मेलो ,उनकी सुपर एफिसिसएंट सेक्रेटरी उनके कमरे में थीं ,
पिंक एप्रन के साथ।
" मेरे ख्याल से सर आपको निकलना चाहिए , पन्दरह मिनट में पहुंचना होगा आपको वहां। "
बड़ी मुश्किल से अपनी खिलहिलाहट दबाते मैंने फोन रखा।
मेरा तो मन कर रहा था की मिसेज डी मेलो को बोलूं की जरा अपनी पिंक लिपस्टिक दें दें उनको फ्रेशःअपहोने के लिए। लेकिन मैंने सोचा की चलो थोड़ा धीरे धीरे , उनकी ३० + गोवानीज सेक्रेटरी अब पूरी तरह मेरे पाले में थी।
ढाई तीन घण्टे बाद वो लौटे ,एकदम हैरान परेशान , थके बुझे।
मैंने मुस्कराहट रोकी , ये तो होना ही था।
बाकी सब कोर्स वाली औरते थीं ,और सब की सब नंबरी मर्दखोर।
मिसेज तनेजा कौन कम थीं , और ये बिचारे अकेले ,खूब रगड़ाई हुयी होगी।
लेकिन मैं भी छोड़ने वाली नहीं थी,
" अरे जरा जो आज सीख़ विख के आये हो , जरा बना के दिखाओ , मैंने सब चीजें तैयार कर के रख दी हैं। अच्छा चलो थके होगे , एक कप चाय बना लो , बल्कि दोकप , मेरे लिए भी। "
टफ हफ्ता था उनके लिए। लेकिन ८-१० नान वेज रेसिपीज उन्होंने अच्छी तरह सीख ली।
सबसे बढ़कर जो असली चीज होती है , कब धीमी आंच पे हलके भूनना है तो कब
और सब बढ़कर मुझे गुड्डी ,मेरी ननद की बाते याद आ रही थी ,
"मेरे भैया वो तो छूते भी नहीं है , आप के मायकेवालों की तरह नहीं।"
और एक बार जब मैंने बर्थडे पे पेस्ट्री मंगा ली थी ,लाख कहा मैंने एगलेस है पर वो छिपकली ,
' क्या पता , और फिर बर्तन तो वही होते हैं और आपको तो मालूम है यहाँ सब लोग एकदम , … "
और पेस्ट्री फेंकी गयी।
और अब रोज वही ,
मैरिनेट ,वाशिंग, क्लीनिंग ,सब कुछ,
एक मेरी 'पैंटी फ्रेंड ' थी ,उनके ग्रूप में उसने खूब मजे ले ले के सुनाया ,कैसे सब औरतें उनकी रगड़ाई करती थीं ,
सब मिल के ऐसे छेड़ती थीं की बस ,
मुझे अपने शुरू के दिन याद आ गए उनके मायके में जो मेरे साथ , ....