06-08-2020, 07:38 AM
फ्राइडे रात में अमित आया और अपने कपड़े खोल कर सिर्फ बरमूडा पहनकर रूम से बाहर आया।
में बाहर हॉल में टेलीविजन देख रही थी वो सीधा किचन में गया और अपना पीने का सामान फ्रिज से निकाल कर लाया, फिर सोफे पर बैठकर दो पेग बनाने लगा ।
में उसको चोर नजर से देख रही थी और उसको दिखा रही थी जैसे मेरा ध्यान सिर्फ़ टी वी देखने मे हौ ।
उसने कुछ पावडर जैसा मेरे पेग में डाला और फिर बोला ,--डार्लिंग चियर्स।
मैं,--मेने तुमको बोला था ना में नही पियूंगी और तुम भी फिर से पीने को बैठ गए ।
अमित ,-पर तुमने जो कारण बताया था वो तो अब समस्या ही नही है।
मैं ,-पर तुमने उस दिन प्रोमिस किया था कि वो लास्ट पेग था ।
अमित सोफ़े से उठा और मुझे बाहों में उठाकर गोद में बिठा लिया और बोला ,--अब चुपचाप पीयेगी या जबर्दस्ती मुँह में डालू ।
मैं ,-पर मुझे पीने के बाद होश नही रहता ।
अमित ,-तो हो जा ना मदहोश।
मैं,-पिछली बात पी थी तो तुम बाद में शिकायत कर रहे थे की गालियां दी थी।
अमित ,--तो दे ना किसने रोका है अच्छी लगती है तुम्हारे मुंह से गाली ।
चल अब बन्द कर अपनी नोटँकी।
फिर उसने अपने हाथ से एक गिलास उठाकर मेरे मुंह से लगाया और मुझे पिलाने लगा ।
में उसकी गोद से उठकर बगल में बैठ गयी और उसको भी दूसरा गिलास पकड़ाया ,
दोनी धीरे धीरे घूंट लेने लगे और साथ मे पास में रखे ड्राई फ्रूट खाने लगे तभी अमित ने मुझे साइड में रखा सिगरेट का पैकेट पकड़ाया ,
में उसके मुंह की तरफ देखने लगी कि कुछ बोलेगा लेकिन जब वो कुछ नही बोला तो मेने एक सिगरेट निकाली और जलाकर एक बार पीकर उसके मुंह मे लगा दी।
वो सिगरेट पीने लगा और मुझे भी अपने हाथ से पिलाने लगा ,सिगरेट खत्म होते ही उसने मेरी साड़ी पिन निकाल दी और खड़ा करके साड़ी निकाल कर फेंक दी।
और अपनी गोद मे बिठा लिया और अपना एक हाथ मेरे बूब पर रखकर दूसरे हाथ से गिलास उठाकर मेरे होठों पर लगा दिया मेने एक घूंट पिया और बोली ,जानू कितनी पिलाओगे ।
अमित ,--यार कोनसा रोज पीते है वीकेंड में एक दिन ही तो पीना है इसमें भी तुमको लगता है कि ये भी इमेज खराब करने वाला काम है
उसका दूसरा हाथ मेरे ब्लाउज के बटन खोलने में व्यस्त था मेने हाथ पकड़ना चाहा तो उसने कहा ,अब तो कमला भी नही है अब क्यों रोक रही हो।
मेने सोचा अगर जरूरत से ज्यादा संस्कार दिखाए तो काम खराब हो सकता है इसलिए खुद ही बाकी बटन खोलकर ब्लाउज को बाहर कर दिया और उसको निकाल दिया ।
उसने अपना हाथ ब्रा में घुसा दिया और निप्पल से खेलते हुए सिगरेट सुलगाने को कहा और दूसरे हाथ से गिलास उठाकर खुद भी पी रहा था और मुझे भी पिला रहा था मेने सिगरेट सुलगायी और जब देखा कि उसके दोनों हाथ बिजी है तो खुद भी पीने लगी और उसको भी पिलाने लगी।
तभी मेने नशा होने की एक्टिंग की और खड़ी होकर अपना पेटीकोट का नाडा खोल दिया पेटीकोट जमीन पा गिर गया और फिर मेने दोनों पैर को साइड में रखके उसके मुहँ की तरफ मुह करके उसके पैरों पर बैठ गयी
अब दोनों के मुह के बीच सिगरेट जितना फासला था और एक दूसरे का छोड़ा हुआ धुँआ सीधे एक दूसरे के मुंह पर टकरा रहा था तभी अमित ने शराब मुँह में भर ली और मेरे मुंह पर टिकाकर सीधे मुहं में पीला दी मेने भी अपने मुंह मे भरकर उसको पिलाई ।लगभग एक डेढ़ घंटे तक दोनों एक दूसरे के साथ छेड़छाड़ करते हुए पीते रहे ।इस तरह से दोनों ने पूरी बोतल शराब की खाली कर दी थी ।
तभी अमित बोला ,-डार्लिंग पहले खाना खा लेते है ।
मुझे शराब का नशा चढ़ चुका था पर इतना भी नही की नही की होश न रहे।
पर मैने अपने आप को जितना नशा था उससे ज्यादा दिखाते हुए कहा ,-ब..ह..न चो...द
खाना तेरी बहन आके लगाएगी जा लेकर आ और गोद से फिसलकर गिरने का नाटक किया ।
अमित ने जल्दी से मुझे संभाला और पकड़कर सोफ़े पर बैठाया । में सोफे पर पीछे पीठ टिका कर बैठ गयी और पैर टेबल पर फैला लिए।
अमित किचन में गया और खाना लाकर टेबल पर रखा में सोफ़े पर सिर रख कर आँखे बंद किये सोने का एक्टिंग करने लगी ।
अमित मुझे हिलाते हुए बेबी खाना खा लो
मैं ऊंघते हुए ,--खिला दे ना अपने हाथ से मुझे
अमित को में इस तरह से आदेश दे रही थी जैसे में उसकी मालकिन हूँ और वो मेरा गुलाम हो।
अमित अपने हाथों से मुझे खाना खिला रहा था साथ ही खुद भी खा रहा था खाना खिलाने के बाद उसने बरतन उठाये और किचन में रखने गया वापस आया।
तो मैने कहा चल ये अपना बरमूडा खोल और मुझे एक सिगरेट दे जला के ।
अमित को बहूत जोर का झटका लगा ये सुनकर पर उसने जो गलती की थी मुझे शराब पिलाने की उसकी सजा तो उसको भुगतनी ही थी इसलिए बेचारा अपना बरमूडा खोलकर नंगा हो गया
उसका लण्ड पूरा सख्त था फिर उसने एक सिगरेट जला कर मुझे दी मेने सिगरेट लेकर पीना चालू किया और बोली ,--चल अब बेठकर मेरी चुत चाट ।
अमित मेरे पैरों के बीच मे आ गया और मेरी पेंटी को साइड में करके चुत चाटने लगा में उसके मुंह पर सिगरेट को धुँआ छोड़ते हुए चुत चटवाती रही ,
सिगरेट खत्म हुई तो मैने उसको बोला,--हरामी की औलाद तुझे चुत चाटना नही आता क्या ये पेंटी तेरा बाप खोलेगा क्या ।
औऱ लड़खड़ाते हुए खड़ी होने लगी अमित ने तुरंत मुझे पकड़ा और फिर पेंटी को नीचे खिसकाया तो मैने दोनों पैरों को एक एक करके ऊपर किया और पेंटी को दूर उछाल दिया फिर अपनी ब्रा का हुक खोल कर उसे भी दूर फेंक दिया
और डाइनिंग टेबल की तरफ जाकर उस पर लेट गयी और बोली चल अब ठीक से चाटना नही तो तेरी गाण्ड फाड़ दूँगी।
अमित बेचारा मरता क्या न करता टेबिल पर झुककर मेरी चुत चाटने लगा जीभ निकाल कर और में नशे में जोर जोर से चिल्लाती रही ओर गालियां भी देती रही।
में बाहर हॉल में टेलीविजन देख रही थी वो सीधा किचन में गया और अपना पीने का सामान फ्रिज से निकाल कर लाया, फिर सोफे पर बैठकर दो पेग बनाने लगा ।
में उसको चोर नजर से देख रही थी और उसको दिखा रही थी जैसे मेरा ध्यान सिर्फ़ टी वी देखने मे हौ ।
उसने कुछ पावडर जैसा मेरे पेग में डाला और फिर बोला ,--डार्लिंग चियर्स।
मैं,--मेने तुमको बोला था ना में नही पियूंगी और तुम भी फिर से पीने को बैठ गए ।
अमित ,-पर तुमने जो कारण बताया था वो तो अब समस्या ही नही है।
मैं ,-पर तुमने उस दिन प्रोमिस किया था कि वो लास्ट पेग था ।
अमित सोफ़े से उठा और मुझे बाहों में उठाकर गोद में बिठा लिया और बोला ,--अब चुपचाप पीयेगी या जबर्दस्ती मुँह में डालू ।
मैं ,-पर मुझे पीने के बाद होश नही रहता ।
अमित ,-तो हो जा ना मदहोश।
मैं,-पिछली बात पी थी तो तुम बाद में शिकायत कर रहे थे की गालियां दी थी।
अमित ,--तो दे ना किसने रोका है अच्छी लगती है तुम्हारे मुंह से गाली ।
चल अब बन्द कर अपनी नोटँकी।
फिर उसने अपने हाथ से एक गिलास उठाकर मेरे मुंह से लगाया और मुझे पिलाने लगा ।
में उसकी गोद से उठकर बगल में बैठ गयी और उसको भी दूसरा गिलास पकड़ाया ,
दोनी धीरे धीरे घूंट लेने लगे और साथ मे पास में रखे ड्राई फ्रूट खाने लगे तभी अमित ने मुझे साइड में रखा सिगरेट का पैकेट पकड़ाया ,
में उसके मुंह की तरफ देखने लगी कि कुछ बोलेगा लेकिन जब वो कुछ नही बोला तो मेने एक सिगरेट निकाली और जलाकर एक बार पीकर उसके मुंह मे लगा दी।
वो सिगरेट पीने लगा और मुझे भी अपने हाथ से पिलाने लगा ,सिगरेट खत्म होते ही उसने मेरी साड़ी पिन निकाल दी और खड़ा करके साड़ी निकाल कर फेंक दी।
और अपनी गोद मे बिठा लिया और अपना एक हाथ मेरे बूब पर रखकर दूसरे हाथ से गिलास उठाकर मेरे होठों पर लगा दिया मेने एक घूंट पिया और बोली ,जानू कितनी पिलाओगे ।
अमित ,--यार कोनसा रोज पीते है वीकेंड में एक दिन ही तो पीना है इसमें भी तुमको लगता है कि ये भी इमेज खराब करने वाला काम है
उसका दूसरा हाथ मेरे ब्लाउज के बटन खोलने में व्यस्त था मेने हाथ पकड़ना चाहा तो उसने कहा ,अब तो कमला भी नही है अब क्यों रोक रही हो।
मेने सोचा अगर जरूरत से ज्यादा संस्कार दिखाए तो काम खराब हो सकता है इसलिए खुद ही बाकी बटन खोलकर ब्लाउज को बाहर कर दिया और उसको निकाल दिया ।
उसने अपना हाथ ब्रा में घुसा दिया और निप्पल से खेलते हुए सिगरेट सुलगाने को कहा और दूसरे हाथ से गिलास उठाकर खुद भी पी रहा था और मुझे भी पिला रहा था मेने सिगरेट सुलगायी और जब देखा कि उसके दोनों हाथ बिजी है तो खुद भी पीने लगी और उसको भी पिलाने लगी।
तभी मेने नशा होने की एक्टिंग की और खड़ी होकर अपना पेटीकोट का नाडा खोल दिया पेटीकोट जमीन पा गिर गया और फिर मेने दोनों पैर को साइड में रखके उसके मुहँ की तरफ मुह करके उसके पैरों पर बैठ गयी
अब दोनों के मुह के बीच सिगरेट जितना फासला था और एक दूसरे का छोड़ा हुआ धुँआ सीधे एक दूसरे के मुंह पर टकरा रहा था तभी अमित ने शराब मुँह में भर ली और मेरे मुंह पर टिकाकर सीधे मुहं में पीला दी मेने भी अपने मुंह मे भरकर उसको पिलाई ।लगभग एक डेढ़ घंटे तक दोनों एक दूसरे के साथ छेड़छाड़ करते हुए पीते रहे ।इस तरह से दोनों ने पूरी बोतल शराब की खाली कर दी थी ।
तभी अमित बोला ,-डार्लिंग पहले खाना खा लेते है ।
मुझे शराब का नशा चढ़ चुका था पर इतना भी नही की नही की होश न रहे।
पर मैने अपने आप को जितना नशा था उससे ज्यादा दिखाते हुए कहा ,-ब..ह..न चो...द
खाना तेरी बहन आके लगाएगी जा लेकर आ और गोद से फिसलकर गिरने का नाटक किया ।
अमित ने जल्दी से मुझे संभाला और पकड़कर सोफ़े पर बैठाया । में सोफे पर पीछे पीठ टिका कर बैठ गयी और पैर टेबल पर फैला लिए।
अमित किचन में गया और खाना लाकर टेबल पर रखा में सोफ़े पर सिर रख कर आँखे बंद किये सोने का एक्टिंग करने लगी ।
अमित मुझे हिलाते हुए बेबी खाना खा लो
मैं ऊंघते हुए ,--खिला दे ना अपने हाथ से मुझे
अमित को में इस तरह से आदेश दे रही थी जैसे में उसकी मालकिन हूँ और वो मेरा गुलाम हो।
अमित अपने हाथों से मुझे खाना खिला रहा था साथ ही खुद भी खा रहा था खाना खिलाने के बाद उसने बरतन उठाये और किचन में रखने गया वापस आया।
तो मैने कहा चल ये अपना बरमूडा खोल और मुझे एक सिगरेट दे जला के ।
अमित को बहूत जोर का झटका लगा ये सुनकर पर उसने जो गलती की थी मुझे शराब पिलाने की उसकी सजा तो उसको भुगतनी ही थी इसलिए बेचारा अपना बरमूडा खोलकर नंगा हो गया
उसका लण्ड पूरा सख्त था फिर उसने एक सिगरेट जला कर मुझे दी मेने सिगरेट लेकर पीना चालू किया और बोली ,--चल अब बेठकर मेरी चुत चाट ।
अमित मेरे पैरों के बीच मे आ गया और मेरी पेंटी को साइड में करके चुत चाटने लगा में उसके मुंह पर सिगरेट को धुँआ छोड़ते हुए चुत चटवाती रही ,
सिगरेट खत्म हुई तो मैने उसको बोला,--हरामी की औलाद तुझे चुत चाटना नही आता क्या ये पेंटी तेरा बाप खोलेगा क्या ।
औऱ लड़खड़ाते हुए खड़ी होने लगी अमित ने तुरंत मुझे पकड़ा और फिर पेंटी को नीचे खिसकाया तो मैने दोनों पैरों को एक एक करके ऊपर किया और पेंटी को दूर उछाल दिया फिर अपनी ब्रा का हुक खोल कर उसे भी दूर फेंक दिया
और डाइनिंग टेबल की तरफ जाकर उस पर लेट गयी और बोली चल अब ठीक से चाटना नही तो तेरी गाण्ड फाड़ दूँगी।
अमित बेचारा मरता क्या न करता टेबिल पर झुककर मेरी चुत चाटने लगा जीभ निकाल कर और में नशे में जोर जोर से चिल्लाती रही ओर गालियां भी देती रही।