08-07-2020, 01:21 AM
"बस बस अब ये बाते बनाना बंद करो और जल्दी चलो. मुझे भूख भी लगी है" रेनू ने गाडी में बैठते हुए कहा.
मनीष ने गाडी शहर के बाहर की तरफ बढ़ा दी. उनके पडोसी राजेश ने अपनी ४५वें जन्म दिन की पार्टी शहर से बाहर एक रिसोर्ट में रखी थी. राजेश भी शहर का जाना माना आदमी था और उसकी पार्टी भी आलीशान थी पर उसमे मेहमान गिने चुने ही थे.
वह पहुचने में मनीष को ४५ मिनट लग गए और करीब ९ बजे वो लोग वहां पहुचे. उनका स्वागत राजेश की बीवी दिव्या ने किया जो आज खुद भी कयामत ढा रही थी.
"आप ही लोगो का इंतज़ार हो रहा था. राजेश कह रहे थे की जब तक रेनू नहीं आती केक नहीं काटेंगे" दिव्या हँसते हुए बोली.
रेनू ये सुन कर थोडा झेप गयी क्योंकि उसकी अपने पड़ोसियों से ज्यादा बातचीत नहीं होती थी. वैसे भी उस मोहल्ले में आये उन्हें ३ साल ही हुए थे. मनीष का बिज़नस अच्छा चलने लगा तो उसने शहर के इस पॉश इलाके में घर खरीदा था.
जब उसे पता चला की उसके पडोसी शहर का मशहूर सीए हैं तो उसने राजेश से अपनी कम्पनी का काम काज देखने को कहा. राजेश ने स्वीकार कर लिया और धीरे धीरे मनीष और राजेश के सम्बन्ध प्रगाढ़ होने लगे और उनके व्यावसायिक के साथ व्यक्तिगत सम्बन्ध भी मधुर हो गए थे.
लेकिन रेनू केवल साल में एक बार राजेश से मिलती थी क्योंकि मनीष का बिज़नस उसी के नाम था तो जब इनकम टैक्स रिटर्न भरना होता तो वो मनीष के साथ राजेश के ऑफिस जाती थी. इसके अलावा कहीं सामने पड़ गए तो हाय हेलो बस. अभी इनकी बातें चल ही रही थी की राजेश भी इनको रिसीव करने बाहर आ गया
मनीष ने गाडी शहर के बाहर की तरफ बढ़ा दी. उनके पडोसी राजेश ने अपनी ४५वें जन्म दिन की पार्टी शहर से बाहर एक रिसोर्ट में रखी थी. राजेश भी शहर का जाना माना आदमी था और उसकी पार्टी भी आलीशान थी पर उसमे मेहमान गिने चुने ही थे.
वह पहुचने में मनीष को ४५ मिनट लग गए और करीब ९ बजे वो लोग वहां पहुचे. उनका स्वागत राजेश की बीवी दिव्या ने किया जो आज खुद भी कयामत ढा रही थी.
"आप ही लोगो का इंतज़ार हो रहा था. राजेश कह रहे थे की जब तक रेनू नहीं आती केक नहीं काटेंगे" दिव्या हँसते हुए बोली.
रेनू ये सुन कर थोडा झेप गयी क्योंकि उसकी अपने पड़ोसियों से ज्यादा बातचीत नहीं होती थी. वैसे भी उस मोहल्ले में आये उन्हें ३ साल ही हुए थे. मनीष का बिज़नस अच्छा चलने लगा तो उसने शहर के इस पॉश इलाके में घर खरीदा था.
जब उसे पता चला की उसके पडोसी शहर का मशहूर सीए हैं तो उसने राजेश से अपनी कम्पनी का काम काज देखने को कहा. राजेश ने स्वीकार कर लिया और धीरे धीरे मनीष और राजेश के सम्बन्ध प्रगाढ़ होने लगे और उनके व्यावसायिक के साथ व्यक्तिगत सम्बन्ध भी मधुर हो गए थे.
लेकिन रेनू केवल साल में एक बार राजेश से मिलती थी क्योंकि मनीष का बिज़नस उसी के नाम था तो जब इनकम टैक्स रिटर्न भरना होता तो वो मनीष के साथ राजेश के ऑफिस जाती थी. इसके अलावा कहीं सामने पड़ गए तो हाय हेलो बस. अभी इनकी बातें चल ही रही थी की राजेश भी इनको रिसीव करने बाहर आ गया