28-02-2019, 05:25 PM
अगर मैं तेरे जीजा की जगह होता ... तेरी रूपाली दीदी को हमेशा अपने लोड़े पर बिठा के रखता ... साले तेरी दीदी तो पूरी मदर डेयरी बन चुकी है..... असलम अभी भी मुझे जलील किए जा रहा था.... दूसरी तरफ मेरी दीदी का दूध जुनैद क कठोर हाथों में ... दबे जा रहे थे.... मेरी रूपाली दीदी और जुनैद की जुबान आपस में जंग छेड़ चुके थे... मेरी रूपाली दीदी के पेटीकोट का कपड़ा योनि में समाया हुआ .... वहां का गीलापन कुछ ज्यादा ही हो गया था.... शायद मेरी संस्कारी दीदी की योनि अपना मदन रस कुछ ज्यादा ही बहाने लगी थी.. वह भी गैर मर्द के छेड़खानी के कारण.. तू इस रंडी की चोली खोल जुनैद मुझसे बर्दाश्त नहीं होता.... इस राड की चूची देने के लिए मैं ना जाने कब से तड़प रहा हूं.... दिखा तो सही अंशुल की दीदी की चोली के अंदर क्या है... असलम ने अपने लौड़ा को मसलते हुए कुछ तेज आवाज में संबोधित किया जुनैद को...
जुनैद तो जैसे नींद से जागा... उसने अपनी जुबान को मेरी दीदी के मुंह से बाहर निकाला.... वह मेरी दीदी की चोली के धागे पीठ पर बंधे हुए थे उन्हें खोलने लगा... कुछ ही देर में मेरी दीदी की चोली जुनैद की हाथों में थी... जुनैद ने मेरी दीदी की चोली असलम की तरफ उछाल दी... असलम ने लपक लिया... दीदी के दूध से गीली हो चुकी चोली को असलम अपनी जुबान से चाटने लगा...
बहन चोद बहुत मीठा दूध है तेरी दीदी का..... साला तेरी दीदी की दूध में तो दारू से भी ज्यादा नशा है... असलम मेरी तरफ देखते हुए मुस्कुराते हुए बोल रहा था.. मेरी रूपाली दीदी की बड़ी-बड़ी चूचियां सिर्फ उनके ब्रा के सहारे पर टिकी हुई थी... जुनैद ने मेरी दीदी की ब्रा का हुक खोलने में जरा भी देर नहीं लगाई... दूध से बिल्कुल गीली हो चुकी मेरी दीदी की ब्रा को जुनैद ने असलम की तरफ उछाल दिया.... असलम ने एक बार फिर लपक लिया... असलम का लोड़ा तंबू बना कर खड़ा था उसके पजामे के अंदर ही....... मेरी रूपाली दीदी अर्ध नग्न अवस्था में मेरे और असलम के सामने खड़ी थी... जुनैद ने उन्हें पीछे से दबोच रखा था... मेरी दीदी अपने हाथों से अपनी बड़ी-बड़ी चुचियों को ढकने का प्रयास कर रही थी... पर जुनैद ने उनकी एक नहीं चलने दी... दीदी के दोनों हाथ पकड़ के उसने अलग अलग कर दिया.... असलम मंत्रमुद्द मेरी दीदी की चुचियों को निहारे जा रहा था...
जुनैद मां कसम आज तक मैंने ऐसी चूचियां नहीं देखी यार... इस रंडी की चूचियां देख कर मेरा लौड़ा फटने को हो गया है जुनैद.... हाय रे न जाने किस चक्की का आटा खाती है यह साली माधर्चोद.... कितनी बड़ी हो गई है इस रंडी की चूचियां... पर फिर भी कितनी टाइट हो रही है.... निपल्स तो देख मेरी रंडी के.... ऐसे लाल निपल्स तो हमारे यहां किसी कि नहीं होंगे..... और कितने खड़े खड़े हैं निपल्स..... इस के पति के तो मजे हैं... साला खूब चूसता होगा... असलम ने खूब दारु पी ली थी.. ना जाने क्या क्या बक रहा था... असलम ने अपने पजामे को उतार दिया.. उसने अपना अंडरवियर भी उतार दीया बिना देर किए...... असलम का 10 इंच का तना लौड़ा देखकर मेरी फट गई... इतना बड़ा लौड़ा तो मैंने आज तक नहीं देखा था.... असलम की निगाहें मेरी रूपाली दीदी पर जमी हुई थी.... पर उसका हाथ अपने खूंखार लोड़े को ऊपर नीचे करने लगा था....
मेरी रूपाली दीदी बड़ी बेबसी से इस सारे नजारे को देख रही थी... दीदी कभी मुझे देखती तो कभी असलम के लोड़े को.... दीदी की निगाहें जब मेरी निगाहों से टकराई तो उनकी आंखें शर्म और हया के मारे झुक गई.... असलम ने मेरी दीदी के गीली ब्रा को अपने लोड़े पर लपेट लिया जो उनके दूध से सना हुआ था.... उसकी हरकत देखकर मेरी दीदी विचलित हो गई.... उन्होंने अपनी आंखें बंद कर ली....
जुनैद तो जैसे नींद से जागा... उसने अपनी जुबान को मेरी दीदी के मुंह से बाहर निकाला.... वह मेरी दीदी की चोली के धागे पीठ पर बंधे हुए थे उन्हें खोलने लगा... कुछ ही देर में मेरी दीदी की चोली जुनैद की हाथों में थी... जुनैद ने मेरी दीदी की चोली असलम की तरफ उछाल दी... असलम ने लपक लिया... दीदी के दूध से गीली हो चुकी चोली को असलम अपनी जुबान से चाटने लगा...
बहन चोद बहुत मीठा दूध है तेरी दीदी का..... साला तेरी दीदी की दूध में तो दारू से भी ज्यादा नशा है... असलम मेरी तरफ देखते हुए मुस्कुराते हुए बोल रहा था.. मेरी रूपाली दीदी की बड़ी-बड़ी चूचियां सिर्फ उनके ब्रा के सहारे पर टिकी हुई थी... जुनैद ने मेरी दीदी की ब्रा का हुक खोलने में जरा भी देर नहीं लगाई... दूध से बिल्कुल गीली हो चुकी मेरी दीदी की ब्रा को जुनैद ने असलम की तरफ उछाल दिया.... असलम ने एक बार फिर लपक लिया... असलम का लोड़ा तंबू बना कर खड़ा था उसके पजामे के अंदर ही....... मेरी रूपाली दीदी अर्ध नग्न अवस्था में मेरे और असलम के सामने खड़ी थी... जुनैद ने उन्हें पीछे से दबोच रखा था... मेरी दीदी अपने हाथों से अपनी बड़ी-बड़ी चुचियों को ढकने का प्रयास कर रही थी... पर जुनैद ने उनकी एक नहीं चलने दी... दीदी के दोनों हाथ पकड़ के उसने अलग अलग कर दिया.... असलम मंत्रमुद्द मेरी दीदी की चुचियों को निहारे जा रहा था...
जुनैद मां कसम आज तक मैंने ऐसी चूचियां नहीं देखी यार... इस रंडी की चूचियां देख कर मेरा लौड़ा फटने को हो गया है जुनैद.... हाय रे न जाने किस चक्की का आटा खाती है यह साली माधर्चोद.... कितनी बड़ी हो गई है इस रंडी की चूचियां... पर फिर भी कितनी टाइट हो रही है.... निपल्स तो देख मेरी रंडी के.... ऐसे लाल निपल्स तो हमारे यहां किसी कि नहीं होंगे..... और कितने खड़े खड़े हैं निपल्स..... इस के पति के तो मजे हैं... साला खूब चूसता होगा... असलम ने खूब दारु पी ली थी.. ना जाने क्या क्या बक रहा था... असलम ने अपने पजामे को उतार दिया.. उसने अपना अंडरवियर भी उतार दीया बिना देर किए...... असलम का 10 इंच का तना लौड़ा देखकर मेरी फट गई... इतना बड़ा लौड़ा तो मैंने आज तक नहीं देखा था.... असलम की निगाहें मेरी रूपाली दीदी पर जमी हुई थी.... पर उसका हाथ अपने खूंखार लोड़े को ऊपर नीचे करने लगा था....
मेरी रूपाली दीदी बड़ी बेबसी से इस सारे नजारे को देख रही थी... दीदी कभी मुझे देखती तो कभी असलम के लोड़े को.... दीदी की निगाहें जब मेरी निगाहों से टकराई तो उनकी आंखें शर्म और हया के मारे झुक गई.... असलम ने मेरी दीदी के गीली ब्रा को अपने लोड़े पर लपेट लिया जो उनके दूध से सना हुआ था.... उसकी हरकत देखकर मेरी दीदी विचलित हो गई.... उन्होंने अपनी आंखें बंद कर ली....