23-06-2020, 02:22 PM
“ भाभी याद रखना, तुमने जिन्दगी भर के लिए मुझे अपना बना लिया । “
उसके बाद मनु के जिद्द पर ससुर से चुदवाई और फिर ससुर के सामने ही मनु के शोशल बाप मुनीम ने भी चोदा । मनु की उस चुदाई ने चूत की गर्मी इतनी बढादी कि जब तब जिससे मन हुआ चुदवाती रही । ससुर के लिए , धंधा बढाने के लिए रंडीपना भी किया । मनु ने थोडा नेगलेक्ट किया तो मरने के कगार पर आ गई। लेकिन अब करीब डेढ साल से सिर्फ मनु और घरवाला से ही चुदवा रही है।
लीला अपनी चुदाई यात्रा के बारे में सोच रही थी लेकिन मनु की हरकत ने उसे अंदर तक हिला दिया ।
“ राजा, मनु मत कर ऐसा, तेरी छोटी भाभी मर जायेगी, हे भगवान मेरी बुद्धि मारी जाती है जो सॉंढ के पास जाती हूं । आह राजा बहुत मजा आ रहा है।उफ, आह , मर जाउंगी । “
मनु अंदरुनी जॉंघो को सहलाते हुए मसलते हुए बूर की मस्ती से रहा था । पहले तो पूरी बूर को मुंह मे ले चबाने लगा, कुछ देर चबाया फिर अपनी नाक को बूर केअंदर पेला और जितना हो सकता था खुब लम्बी लम्बी सॉंसे लेता रहा। भाभी को बरदास्त करना बहुत मुश्किल हो रहा था । नाक बूर के अंदर रखे हुए मनु को खूदघुटन होने लगी तब नाक बाहर निकाला और जीभ को अंदर पेला और दोनो हाथों से क्लीट और बूर की पत्तीयों को धीमें धीमें मसलने लगा। भाभी की छटफटाहटऔर भी बढ गई ।
“ उफ, राजा जीते जीते मत मार, मैं मर जाउगीं तो फिर तेरी प्यारी बेटी को कौन जनम देगा….”
बस, इतना सुनना था कि मनु ने सर उपर उठाया और एक ही झटके में भाभी के उपर आ गया । किसी को हाथ लगाने की जरुरत नहीं थी । मनु अपनी प्यारी भाभीके ऑंखों मे देखता रहा, लौडा ने अपना जगह ढूंढ लिया । बूर इतनी पनीया गई थी कि धक्का लगाने की भी जरूरत नही पडी । मनु से दबाये रखा और लौडा खुद बखुद अंदर घुसता गया । मनु ने कई बार चूमा और कहा ,
“ भाभी , कार में आपको देखते ही मुझे लगा था कि जरुर कोई खाश बात है । उफ भाभी इस से ज्यादा खुशी मुझे पहले नहीं हुई । “
उसके बाद मनु के जिद्द पर ससुर से चुदवाई और फिर ससुर के सामने ही मनु के शोशल बाप मुनीम ने भी चोदा । मनु की उस चुदाई ने चूत की गर्मी इतनी बढादी कि जब तब जिससे मन हुआ चुदवाती रही । ससुर के लिए , धंधा बढाने के लिए रंडीपना भी किया । मनु ने थोडा नेगलेक्ट किया तो मरने के कगार पर आ गई। लेकिन अब करीब डेढ साल से सिर्फ मनु और घरवाला से ही चुदवा रही है।
लीला अपनी चुदाई यात्रा के बारे में सोच रही थी लेकिन मनु की हरकत ने उसे अंदर तक हिला दिया ।
“ राजा, मनु मत कर ऐसा, तेरी छोटी भाभी मर जायेगी, हे भगवान मेरी बुद्धि मारी जाती है जो सॉंढ के पास जाती हूं । आह राजा बहुत मजा आ रहा है।उफ, आह , मर जाउंगी । “
मनु अंदरुनी जॉंघो को सहलाते हुए मसलते हुए बूर की मस्ती से रहा था । पहले तो पूरी बूर को मुंह मे ले चबाने लगा, कुछ देर चबाया फिर अपनी नाक को बूर केअंदर पेला और जितना हो सकता था खुब लम्बी लम्बी सॉंसे लेता रहा। भाभी को बरदास्त करना बहुत मुश्किल हो रहा था । नाक बूर के अंदर रखे हुए मनु को खूदघुटन होने लगी तब नाक बाहर निकाला और जीभ को अंदर पेला और दोनो हाथों से क्लीट और बूर की पत्तीयों को धीमें धीमें मसलने लगा। भाभी की छटफटाहटऔर भी बढ गई ।
“ उफ, राजा जीते जीते मत मार, मैं मर जाउगीं तो फिर तेरी प्यारी बेटी को कौन जनम देगा….”
बस, इतना सुनना था कि मनु ने सर उपर उठाया और एक ही झटके में भाभी के उपर आ गया । किसी को हाथ लगाने की जरुरत नहीं थी । मनु अपनी प्यारी भाभीके ऑंखों मे देखता रहा, लौडा ने अपना जगह ढूंढ लिया । बूर इतनी पनीया गई थी कि धक्का लगाने की भी जरूरत नही पडी । मनु से दबाये रखा और लौडा खुद बखुद अंदर घुसता गया । मनु ने कई बार चूमा और कहा ,
“ भाभी , कार में आपको देखते ही मुझे लगा था कि जरुर कोई खाश बात है । उफ भाभी इस से ज्यादा खुशी मुझे पहले नहीं हुई । “