17-06-2020, 01:38 PM
एक खूबसूरत रंग फिजां में फैल कर बिखर गया. उस दिन उस के छोटे बिस्तर पर जो अपनापन मिला, मां की गोद के बाद कभी नहीं मिला था. 2 महीने बाद दोनों ने शादी कर ली, बस 10 जने थे. न घोड़ी, न बरात, पर मुझे और नीना को लग रहा था कि सारी दुनिया जीत ली.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.