Thread Rating:
  • 7 Vote(s) - 2 Average
  • 1
  • 2
  • 3
  • 4
  • 5
पुरानी हिन्दी की मशहूर कहनियाँ
अगले दस मिनट अमर कमला की बुर और गांड बारी बारी से चूसता रहा. बच्ची की झड़ी चूत पर और नन्हे से क्लिट पर अब जब अमर की जीभ चलती तो वह अजीब से सम्वेदन से तड़प उटती. उसे यह सहन नहीं हो रहा था और बेचारी रोने को आ गई कि कब भैया उस पर तरस खाकर उसकी यह मीठी यातना समाप्त करे्गा. वह कमसिन छोकरी मुंह बन्द होने से कुछ नहीं कर सकी, सिर्फ़ रेखा की बुर में घिगियाकर रह गई.

रेखा उसका लंड चूसने लगी. चूसते चूसते अमर से पूछा "क्यों, सूखी ही मारोगे या मक्खन लाऊं" अमर मस्ती में बोला "सूखी मारने में बहुत मजा आयेगा मेरी जान" रेखा उस मोटे लंड को देखकर बोली "मैं तुमसे रोज गांड मराती हूं पर मुझे भी आज इस की साइज़ देखकर डर लगा रहा है, फ़ट जायेगी गाण्ड, मैं मक्खन लेकर आती हूं, आज चिकनी कर के मारो, अब तो रोज ही मारना है, सूखी बाद में चोद लेना"

रेखा उठकर मक्खन लाने को चली गई. अमर प्यार से औंधी पड़ी अपनी छोटी बहन के नितम्ब सहलाता रहा. लस्त कमला भी पड़ी पड़ी आराम करती रही. उसे लगा रेखा और भैया में उनके आपस के गुदा सम्भोग की बातें चल रही हैं, उसे क्या लेना देना था. बेचारी बच्ची नहीं जानती थी कि उस की गांड मारने की तैयारी हो रही है.

रेखा मक्खन लेकर आई और अमर के हाथ मे देकर आंख मारकर पलंग पर चढ़ गई. लेटकर उसने कमला को उठा कर अपने ऊपर औंधा लिटा लिया और उसे चूमने लगी. कमला के हाथ उसने अपने शरीर के गिर्द लिपटा लिये और अपनी पीठ के नीचे दबा लिये जिससे वह कुछ प्रतिकार न कर सके. अपनी टांगो में कमला के पैर जकड़ लिये और उसे बांध सा लिया.

कमला की मुलायम गोरी गांड देखकर अमर अब अपनी वासना पर काबू न रख सका. वह उठा और कमला की कुंवारी गांड मारने की तैयारी करने लगा. अब रेखा भी मजा लेने लगी. उसने कमला से कहा. "मेरी प्यारी ननद रानी, मैने तुझसे वायदा किया था ना कि भैया आज तुझे नहीं चोदेंगे" कमला घबरा गई. रेखा ने उसे दिलासा देते हुए कहा. "घबरा मत बिटिया, सच में नहीं चोदेंगे" फ़िर कुछ रुक कर मजा लेती हुई बोली "आज वे तेरी गांड मारेंगे"

कमला सकते में आ गई और घबरा कर रोने लगी. अमर अब पूरी तरह से उत्तेजित था. उसने एक उंगली मक्खन में चुपड़ कर कमला के गुदा में घुसेड़ दी. उस नाजुक गांड को सिर्फ़ एक उंगली में ही ऐसा दर्द हुआ कि वह हिचक कर रो पड़ी. अमर को मजा आ गया और उसने कमला का सिर उठाकर अपना लंड उस बच्ची को दिखाया. "देख बहन, तेरी गांड के लिये क्या मस्त लौड़ा खड़ा किया है."

उस बड़े महाकाय लंड को देखकर कमला की आंखे पथरा गई. अमर का लंड अब कम से कम आठ इंच लम्बा और ढाई इन्च मोटा हो गया था. वह अमर से अपनी चूत चुसवाने के आनन्द में यह भूल ही गई थी कि आज उस की कोमल कुंवारी गांड भी मारी जा सकती है.

अमर ने उसका भयभीत चेहरा देखा तो मस्ती से वह और मुस्काया. असल में उसका सपना हमेशा से यही था कि पहली बार वह कमला की गांड मारे तो वह जबर्दस्ती करते हुए मारे. इसीलिये उसने कमला को बार बार चूसकर उसकी सारी मस्ती उतार दी थी. उसे पता था कि मस्ती उतरने के बाद कमला सम्भोग से घबरायेगी और उस रोती गिड़गिड़ाते सुन्दर चिकनी लड़की की नरम कुंवारी गांड अपने शैतानी लंड से चोदने में स्वर्ग का आनन्द आयेगा.

रेखा भी अब एक क्रूरता भरी मस्ती में थी. बोली "बहन, तेरी गांड तो इतनी नाजुक और सकरी है कि सिर्फ़ एक उंगली डालने से ही तू रो पड़ती है. तो अब जब यह घूंसे जैसा सुपाड़ा और तेरे हाथ जितना मोटा लंड तेरे चूतड़ों के बीच जायेगा तो तेरा क्या होगा?"

कमला अब बुरी तरह से घबरा गई थी. उसकी सारी मस्ती खतम हो चुकी थी. वह रोती हुई बिस्तर से उठने की कोशिश करने लगी पर रेखा की गिरफ़्त से नहीं छूट पाई. रोते रोते वह गिड़गिड़ा रही थी. "भैया, भाभी, मुझे छोड़ दीजिये, मेरी गांड फ़ट जायेगी, मैं मर जाऊंगी, मेरी गांड मत मारिये, मैं आपकी मुट्ठ मार देती हूं, लंड चूस कर मैं आपको खुश कर दूंगी. या फ़िर चोद ही लीजिये पर गांड मत मारिये"

रेखा ने उसे दबोचा हुआ था ही, अपनी मांसल टांगें भी उसने कमला के इर्द गिर्द जकड़ लीं और कमला को पुचकारती हुई बोली "घबरा मत बेटी, मरेगी नहीं, भैया बहुत प्यार से मन लगा कर मारेंगे तेरी और फ़िर तुझे आखिर अब रोज ही मराना है. हां, दर्द तुझे बहुत होगा और तू गांड पहली बार चुदते हुए बहुत छटपटायेगी इसलिये मैं तुझे पकड़ कर अपनी बाहों मे कैद रखूंगी." रेखा फ़िर अमर को बोली. "शुरू हो जाओ जी" और कमला का रोता मुंह अपने मुंह में पकड़ कर उसे चुप कर दिया

अमर ने ड्रावर से रेखा की दो ब्रा निकालीं और एक से कमला के पैर आपस में कस कर बाम्ध दिये. फ़िर उसके हाथ ऊपर कर के पन्जे भी दूसरी ब्रेसियर से बांध दिये. "बहन ये ब्रा तेरी भाभी की हैं, तेरी मनपसंद, इसलिये गांड मराते हुए यह याद रख कि अपनी भाभी के ब्रेसियर से तेरी मुश्कें बांधी गई हैं." उसने कमला को बताया. रोती हुई लड़की के पीछे बैठकर अमर ने उसके चूतड़ों को प्यार करना शुरू किया. उसका लंड अब सूज कर वासना से फ़टा जा रहा था पर वह मन भर के उन सुन्दर नितम्बों की पूजा करना चाहता था.

पहले तो उसने बड़े प्यार से उन्हें चाटा. फ़िर उन्हें मसलता हुआ वह उन्हें हौले हौले दांतों से काटने लगा. नरम नरम चिकने चूतड़ों को चबाने में उसे बहुत मजा आ रहा था. कमला के गोरे गोरे नितम्बों के बीच का छेद एक गुलाब की कली जैसा मोहक सा दिख रहा था. अमर ने अपने मजबूत हाथों से उसके चूतड़ पकड़ कर अलग किये और अपना मुंह उस गुलाबी गुदा द्वार पर जमा कर चूसने लगा. अपनी जीभ उसने पूरी उस मुलायम छेद में डाल दी और अन्दर से कमला की गांड की नरम नरम म्यान को चाटने लगा. मख्खन लगी गांड के सौंधे सौंधे से स्वाद और महक ने उसे और मदमस्त कर दिया.

वह उठकर बैठ गया और एक बड़ा मक्खन का लौन्दा लेकर कमला की गांड मे अपनी उंगली से भर दिया. एक के बाद एक वह मक्खन के गोले उस सकरी गांड में भरता रहा जब तक करीब करीब पूरा पाव किलो मक्खन बच्ची की गांड में नहीं समा गया. रेखा ने कुछ देर को अपना मुंह कमला के मुंह से हटा कर कहा "लबालब मक्खन तेरी गांड में भरा रहेगा बेटी, तो गांड मस्त मारी जायेगी, लौड़ा ऐसे फ़िसलेगा जैसे सिलिंडर में पिस्टन."

बचा हुआ मक्खन अमर अपने भरी भरकम लंड पर दोनों हथेलियों से चुपड़ने लगा. उसे अब अपने ही लोहे जैसे कड़े शिश्न की मक्खन से मालिश करते हुए ऐसा लग रहा था जैसे कि वह घोड़े का लंड हाथ में लिये है. फ़ूली हुई नसें तो अब ऐसी दिख रही थीं कि जैसे किसी पहलवान के कसरती हाथ की मांस-पेशियां हो. उसने अपने हाथ चाटे और मक्खन साफ़ किया जिससे कमला की चूचियां दबाते हुए ना फ़िसले.
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी  हम अकेले हैं.



thanks
Like Reply


Messages In This Thread
Pahli bar bahan k sath picnic - by neerathemall - 14-02-2019, 03:18 AM
RE: Soni Didi Ke Sath Suhagraat - by neerathemall - 26-04-2019, 12:23 AM
didi in waterfall - by neerathemall - 04-06-2019, 01:34 PM
ANUSHKA IS ASHWIN'S SWEET WIFE - by ashw - 03-07-2019, 07:08 PM
ANUSHKA IS ASHWIN'S SWEET WIFE - by ashw - 24-01-2020, 11:08 AM
Meri Didi Ki Garam Jawani - by neerathemall - 29-01-2020, 11:22 AM
Zohra Ki Pyaas Papa Ne Bujhaee - by neerathemall - 29-01-2020, 02:39 PM
RE: पुरानी हिन्दी की मशहूर कहनियाँ - by neerathemall - 29-05-2020, 05:27 PM



Users browsing this thread: 30 Guest(s)