07-02-2019, 06:10 PM
इतनी बातें करने के बाद रेनू एकदम से बोली की क्या भूख लग रही है मैंने कहा की हाँ चलो कुछ खा लेते हैं. वो बोली की तुम रुको मै खाना गरम कर के लाती हूँ. इतना कह कर वो बेड के ऊपर खडी हो गयी. क्या मस्त लग रही ही रेनू. फिर वो बेड से उत्तरी और नंगे ही किचन की तरफ चले गयी. मै भी उठा और उसके पीछे पीहे किचन की तरफ चलने लगा. किचन मै देखा की रेनू खाना गरम कर रही है. उसकी प्यारी सी गांड पीछे से देख कर मुझसे रहा नहीं गया. मै उसके पीछे गया और लंड को उसकी गांड पे चिपका दिया और अपने हाथ उसके बूब्स पे रख के दबाने लगा. रेनू एक दम से मेरी तरफ घूम गयी. हम दोनों खड़े खड़े मे एक दूसरे को टाइट से जकडे हुआ थे. इतने मे खाना गरम हो गया. फिर हम दोनों एक दूसरे से अलग हुए और खाना लेके अन्दर बेडरूम मे आ गए. बेडरूम मे हमने खाना खाया और उसके बाद बर्तन अन्दर किचन मे रखने के लिए गए जहाँ पे हमने हाथ भी धोए. इस पूरे टाइम पे भी हम दोनों एकदम नंगे थे. हाथ धोकर हम दोनों वापस बेडरूम मे आए और बेड पे लेट गए. थोड़ी देर मे ही हम दोनों फिर से एक दूसरे के शरीर को छेड़ने लगे. मै रेनू की चूत पे हाथ फेर रहा था और वो मेरा लंड पकड़ के हिलाने लगी.
मै: क्या मन कर रहा है कुछ करने का
रेनू: हाँ करो न
मै: क्या कॉन्डोम लेके आयूं
रेनू: नहीं रहने दो. जस्ट हाथ और मुहं से ही करो न.
उसके बाद मै उसकी चूत की तरफ गया और उसकी चूत मे अपनी ऊँगली डाली. उसकी चूत एकदम गीली थी. ऊँगली चूत मे डालते हुए ही मै उसकी चूत पे अपना मुहं लेके गया और उसको चाटने लगा और उसकी चूत का पानी पीने लगा. रेनू के मुहं से हल्की हल्की सिसकारी निकलने लगी. थोड़ी देर बाद रेनू एकदम से तेजी से हिली और बोली की रुको मेरा हो गया है. मैंने उसकी चूत का सारा पानी पिया और फिर उसके बगल मे बैठ गया. इस समय मै उसकी पैरों की तरफ बैठा था. रेनू ने अपना एक पैर घुटनों से मोड़ दिया और एक पैर सीधा ही रखा. क्या मस्त नज़ारा था उसकी चूत एकदम निखर के मेरे सामने थी और मै उसे एकटक देख रहा था.
रेनू: क्या देख रहे हो
मै: बस तुमको ही देख रहा हूँ
रेनू: सही सही बोलो न की मेरा वेजाइना देख रहे हो
मै: मै तुम्हारे वेजाइना के साथ साथ तुम्हे पूरा ही देख रहा हूँ.
रेनू: मै इतनी अच्छी लगी क्या तुमको
मै: हाँ जान तुम हो ही अच्छी
फिर हम काफी देर तक नार्मल बातें करते रहे. फिर रेनू के फ़ोन पे उसकी बहन का फ़ोन आया और वो हमें वापस घर आने को बोल रही थी. इस समय मै बेड पे बैठा हुआ था और मेरे पैर बेड के नीचे थे. रेनू एकदम से बेड से नीचे उत्तरी और फिर मेरे दोनों तरफ अपने पैर कर के मेरी गोद मे बैठ गयी. इस पोजीशन मे रेनू की चूत मेरे लंड से टच हो रही थी. हम दोनों एक दूसरे को किस करने लगे. फिर मैने रेनू को गोद मे उठाया और फिर बेड पे लिटा दिया.
रेनू: प्लीज इन्सर्ट कर दो न
मै: अरे कॉन्डोम नहीं है
रेनू: कोई बात नहीं बिना कॉन्डोम के ही कर दो न प्लीज
मै: यार प्रॉब्लम हो जायेगी
रेनू: मै पिल ले लुंगी तुम इन्सर्ट करो न
पर मैंने सोचा की रिस्क लेने से कोई फ़ायदा नहीं और अपनी भावनाओं को काबू मे किया और चुदाई नहीं की. फिर हम दोनों तैयार हुआ और घर से निकल गए. जब हम कार मे थे तो रेनू ने मुझे थैंक्स बोला मैंने कहा की थैंक्स क्यों तो वो बोली की तुमने कण्ट्रोल कर लिया इसलिए. सच मे अगर तुम इन्सर्ट कर देते तो प्रॉब्लम भी हो सकती थी.
इसके बाद रेनू अपने पिता और बहन के साथ दिल्ली से वापस अपने घर देहरादून आ गयी पर हमारी फ़ोन पे लगातार बात होने लगी. मुझे यह लगता है की अच्छा होता अगर रेनू की चूत मार ली होती. पूरी नंगी लड़की साथ मे थी और मैंने चोदा भी नहीं उसको जबकि वो चोदने को बोल रही थी. मैंने रेनू को फ़ोन पे बोला की मुझे बस अपना लंड एक बार उसकी चूत के अन्दर डालना है. अन्दर डाल के मै लंड निकाल लूँगा. वो बोली की जब तुम देहरादून आयोगे तो डाल लेना. फिर मैंने उससे उसके पुराने बॉय फ्रेंड्स के बारे मे बात की. मैंने उसको पूरी कहानी डिटेल मे बताने को कहा. जब वो बता रही थी तो सच मे दोस्तों रेनू को दूसरे बन्दे के साथ बिस्तर पर नंगा सोच के ही लंड खड़ा हो जाता था. फ़ोन पे हम जब रात मे बात करते थे तो मैं उसको पूछता की उसने क्या पहना है वो बोलती की टॉप और शॉर्ट्स पहेने हैं. फिर मै उससे पूछता की और क्या पहना है तो वो बताती की ब्रा और पेंटी. ब्रा तो वो रोज वाइट ही पहनती थी पर रोज रोज पूछ के मुझे पता चला की उसकी पास तीन पेंटी हैं. एक लाल रंग की जिसमे सफ़ेद छोटे छोटे फूल बने थे. एक काली वाली जिसमे ग्रीन ग्रीन छोटे फूल थे यह वोही वाली कच्छी थी जो मैंने उत्तारी थी और एक पेंटी जो और थी वो भी काली थी जिसमे सफ़ेद छोटे फूल बने थे. उसकी तीनो कच्चियाँ जॉकी कंपनी की थीं. एक रात जब हम काफी देर तक बातें करते तो मैंने उससे पुछा
मै: क्या रिंकी सो गयी है
रेनू: हाँ वो सो गयी है
मै: क्या तुम वो कर सकती हो जो मै कहूँगा.
रेनू: क्या करना है
मै: अपना टॉप उत्तार दो न
रेनू: तुम सच मै कह रहे हो क्या
मै: हाँ
रेनू: रुको उत्तारती हूँ
इतना कह कर उसने टॉप उत्तार दिया. उसके टॉप उत्तारने की आवाज मुझे फ़ोन पे हलके हलके आ रही थी.
रेनू: उत्तार दिया
मै: ब्रा भी उत्तार दो न
रेनू: ठीक है उत्तारती हूँ
रेनू: उत्तार दी
मै: टॉप और ब्रा कहाँ पे रखे हैं
रेनू: बेड के बगल मे चेयर है उसपे
मै: शॉर्ट्स भी उत्तार दो
रेनू: पूरा नंगा होना है क्या
मै: उत्तार दो न शॉर्ट्स
रेणु ठीक है
रेनू: उत्तार दिए
मै: कच्छी भी उत्तार दो
रेनू: ठीक है मुझे यकीन नहीं हो रहा की तुम मुझे नंगा होने को कह रहे हो फ़ोन पे और मई हो रही हूँ
मै: इसी मे तो मज़ा है जान
रेनू: कच्छी भी उत्तार दी.
मै: क्या मस्त लग रही होगी तुम एक दम नंगी लेटी हो बेड पे और रिंकी तुम्हारे बगल मे सो रही है
रेनू: ये ही सोच के तो मै नीचे से वेट हो गयी हूँ. मुझे बाथरूम जाना पड़ेगा चूत को धोने के लिए
मै: तो जाओ न
रेनू: कपडे पहन के जाती हूँ
मै: नहीं ऐसे ही जाओ
रेनू: पूरी नंगी जायूं क्या
मै: हाँ कपडे भी लेकर मत जाना
फिर वो उठी और बाथरूम गयी. बाथरूम का डोर खुलने की आवाज भी मुझे आयी. अन्दर पहुँच के उसने चूत धोयी और मुझे बोली
रेनू: यकीन नहीं आ रहा की मै बाथरूम मे तुम्हारे कहने से पूरी नंगी खड़ी हूँ.
मै: बाथरूम मई शीशा है क्या
रेनू: हाँ क्यों
मै: कितना बड़ा है
रेनू: फुल साइज़ का है
मै: तुम पूरी नंगी दिख रही हो क्या उसमे
रेनू: हाँ
मै: शीशे के सामने कुछ है बैठने के लिए
रेनू: हाँ बाथरूम मे जो छोटी वाली स्टूल होती है वो है
मै: उसमे बैठ जाओ
रेनू: बैठ गयी
मै: अपनी टाँगे फैलाओ फर्श पे
रेनू: फैला ली अब क्या करना है
मै: तुम क्या अपनी चूत को शीशे मे देख पा रही हो
रेनू: हाँ
मै: चूत मे कुछ हो रहा है
रेनू: अजीब सा लग रहा है
मै: क्या चूत वेट हो रही है
रेनू: हाँ बहुत ज्यादा
मै: उसको टच करने का मन कर रहा है क्या
रेनू: हाँ
मै: तो फिर टच करो न अपनी चूत को
रेनू: कर रही हूँ
मै: कैसा लग रहा है
रेनू: अजीब सा पर मज़ा आ रहा है
मै: तुमने पहले कभी टच की है अपनी चूत
रेनू: हाँ
मै: हफ्ते मे कितनी बार करती हो
रेनू: एक या दो बार
मै: तो तब मज़ा ज्यादा आता है की जब मै करा रहा हूँ तब
रेनू: तुमसे बात करते हुए करने मे ज्यादा मज़ा आ रहा है. तुमने क्या पहना है
मै: मै भी नंगा हूँ
रेनू: तुम भी क्या अपना लंड हिला रहे हो
मै: हाँ
रेनू: मेरा होने वाला है
मै: मेरा भी
उसके बाद हम दोनों ने पानी छोड़ दिया. फिर ये हम रोज करने लगे. जिस दिन मै उसको नंगा होने को नहीं बोलता तो वो बोलती की क्या आज कुछ नहीं करेंगे तो मै बोलता की करेंगे यार. कई बार वो जब अपनी चूत मे ऊँगली कर रही होती तो बोलती की प्लीज जल्दी आओ न अपने लंड को मेरी चूत मे डालने.
मै: क्या मन कर रहा है कुछ करने का
रेनू: हाँ करो न
मै: क्या कॉन्डोम लेके आयूं
रेनू: नहीं रहने दो. जस्ट हाथ और मुहं से ही करो न.
उसके बाद मै उसकी चूत की तरफ गया और उसकी चूत मे अपनी ऊँगली डाली. उसकी चूत एकदम गीली थी. ऊँगली चूत मे डालते हुए ही मै उसकी चूत पे अपना मुहं लेके गया और उसको चाटने लगा और उसकी चूत का पानी पीने लगा. रेनू के मुहं से हल्की हल्की सिसकारी निकलने लगी. थोड़ी देर बाद रेनू एकदम से तेजी से हिली और बोली की रुको मेरा हो गया है. मैंने उसकी चूत का सारा पानी पिया और फिर उसके बगल मे बैठ गया. इस समय मै उसकी पैरों की तरफ बैठा था. रेनू ने अपना एक पैर घुटनों से मोड़ दिया और एक पैर सीधा ही रखा. क्या मस्त नज़ारा था उसकी चूत एकदम निखर के मेरे सामने थी और मै उसे एकटक देख रहा था.
रेनू: क्या देख रहे हो
मै: बस तुमको ही देख रहा हूँ
रेनू: सही सही बोलो न की मेरा वेजाइना देख रहे हो
मै: मै तुम्हारे वेजाइना के साथ साथ तुम्हे पूरा ही देख रहा हूँ.
रेनू: मै इतनी अच्छी लगी क्या तुमको
मै: हाँ जान तुम हो ही अच्छी
फिर हम काफी देर तक नार्मल बातें करते रहे. फिर रेनू के फ़ोन पे उसकी बहन का फ़ोन आया और वो हमें वापस घर आने को बोल रही थी. इस समय मै बेड पे बैठा हुआ था और मेरे पैर बेड के नीचे थे. रेनू एकदम से बेड से नीचे उत्तरी और फिर मेरे दोनों तरफ अपने पैर कर के मेरी गोद मे बैठ गयी. इस पोजीशन मे रेनू की चूत मेरे लंड से टच हो रही थी. हम दोनों एक दूसरे को किस करने लगे. फिर मैने रेनू को गोद मे उठाया और फिर बेड पे लिटा दिया.
रेनू: प्लीज इन्सर्ट कर दो न
मै: अरे कॉन्डोम नहीं है
रेनू: कोई बात नहीं बिना कॉन्डोम के ही कर दो न प्लीज
मै: यार प्रॉब्लम हो जायेगी
रेनू: मै पिल ले लुंगी तुम इन्सर्ट करो न
पर मैंने सोचा की रिस्क लेने से कोई फ़ायदा नहीं और अपनी भावनाओं को काबू मे किया और चुदाई नहीं की. फिर हम दोनों तैयार हुआ और घर से निकल गए. जब हम कार मे थे तो रेनू ने मुझे थैंक्स बोला मैंने कहा की थैंक्स क्यों तो वो बोली की तुमने कण्ट्रोल कर लिया इसलिए. सच मे अगर तुम इन्सर्ट कर देते तो प्रॉब्लम भी हो सकती थी.
इसके बाद रेनू अपने पिता और बहन के साथ दिल्ली से वापस अपने घर देहरादून आ गयी पर हमारी फ़ोन पे लगातार बात होने लगी. मुझे यह लगता है की अच्छा होता अगर रेनू की चूत मार ली होती. पूरी नंगी लड़की साथ मे थी और मैंने चोदा भी नहीं उसको जबकि वो चोदने को बोल रही थी. मैंने रेनू को फ़ोन पे बोला की मुझे बस अपना लंड एक बार उसकी चूत के अन्दर डालना है. अन्दर डाल के मै लंड निकाल लूँगा. वो बोली की जब तुम देहरादून आयोगे तो डाल लेना. फिर मैंने उससे उसके पुराने बॉय फ्रेंड्स के बारे मे बात की. मैंने उसको पूरी कहानी डिटेल मे बताने को कहा. जब वो बता रही थी तो सच मे दोस्तों रेनू को दूसरे बन्दे के साथ बिस्तर पर नंगा सोच के ही लंड खड़ा हो जाता था. फ़ोन पे हम जब रात मे बात करते थे तो मैं उसको पूछता की उसने क्या पहना है वो बोलती की टॉप और शॉर्ट्स पहेने हैं. फिर मै उससे पूछता की और क्या पहना है तो वो बताती की ब्रा और पेंटी. ब्रा तो वो रोज वाइट ही पहनती थी पर रोज रोज पूछ के मुझे पता चला की उसकी पास तीन पेंटी हैं. एक लाल रंग की जिसमे सफ़ेद छोटे छोटे फूल बने थे. एक काली वाली जिसमे ग्रीन ग्रीन छोटे फूल थे यह वोही वाली कच्छी थी जो मैंने उत्तारी थी और एक पेंटी जो और थी वो भी काली थी जिसमे सफ़ेद छोटे फूल बने थे. उसकी तीनो कच्चियाँ जॉकी कंपनी की थीं. एक रात जब हम काफी देर तक बातें करते तो मैंने उससे पुछा
मै: क्या रिंकी सो गयी है
रेनू: हाँ वो सो गयी है
मै: क्या तुम वो कर सकती हो जो मै कहूँगा.
रेनू: क्या करना है
मै: अपना टॉप उत्तार दो न
रेनू: तुम सच मै कह रहे हो क्या
मै: हाँ
रेनू: रुको उत्तारती हूँ
इतना कह कर उसने टॉप उत्तार दिया. उसके टॉप उत्तारने की आवाज मुझे फ़ोन पे हलके हलके आ रही थी.
रेनू: उत्तार दिया
मै: ब्रा भी उत्तार दो न
रेनू: ठीक है उत्तारती हूँ
रेनू: उत्तार दी
मै: टॉप और ब्रा कहाँ पे रखे हैं
रेनू: बेड के बगल मे चेयर है उसपे
मै: शॉर्ट्स भी उत्तार दो
रेनू: पूरा नंगा होना है क्या
मै: उत्तार दो न शॉर्ट्स
रेणु ठीक है
रेनू: उत्तार दिए
मै: कच्छी भी उत्तार दो
रेनू: ठीक है मुझे यकीन नहीं हो रहा की तुम मुझे नंगा होने को कह रहे हो फ़ोन पे और मई हो रही हूँ
मै: इसी मे तो मज़ा है जान
रेनू: कच्छी भी उत्तार दी.
मै: क्या मस्त लग रही होगी तुम एक दम नंगी लेटी हो बेड पे और रिंकी तुम्हारे बगल मे सो रही है
रेनू: ये ही सोच के तो मै नीचे से वेट हो गयी हूँ. मुझे बाथरूम जाना पड़ेगा चूत को धोने के लिए
मै: तो जाओ न
रेनू: कपडे पहन के जाती हूँ
मै: नहीं ऐसे ही जाओ
रेनू: पूरी नंगी जायूं क्या
मै: हाँ कपडे भी लेकर मत जाना
फिर वो उठी और बाथरूम गयी. बाथरूम का डोर खुलने की आवाज भी मुझे आयी. अन्दर पहुँच के उसने चूत धोयी और मुझे बोली
रेनू: यकीन नहीं आ रहा की मै बाथरूम मे तुम्हारे कहने से पूरी नंगी खड़ी हूँ.
मै: बाथरूम मई शीशा है क्या
रेनू: हाँ क्यों
मै: कितना बड़ा है
रेनू: फुल साइज़ का है
मै: तुम पूरी नंगी दिख रही हो क्या उसमे
रेनू: हाँ
मै: शीशे के सामने कुछ है बैठने के लिए
रेनू: हाँ बाथरूम मे जो छोटी वाली स्टूल होती है वो है
मै: उसमे बैठ जाओ
रेनू: बैठ गयी
मै: अपनी टाँगे फैलाओ फर्श पे
रेनू: फैला ली अब क्या करना है
मै: तुम क्या अपनी चूत को शीशे मे देख पा रही हो
रेनू: हाँ
मै: चूत मे कुछ हो रहा है
रेनू: अजीब सा लग रहा है
मै: क्या चूत वेट हो रही है
रेनू: हाँ बहुत ज्यादा
मै: उसको टच करने का मन कर रहा है क्या
रेनू: हाँ
मै: तो फिर टच करो न अपनी चूत को
रेनू: कर रही हूँ
मै: कैसा लग रहा है
रेनू: अजीब सा पर मज़ा आ रहा है
मै: तुमने पहले कभी टच की है अपनी चूत
रेनू: हाँ
मै: हफ्ते मे कितनी बार करती हो
रेनू: एक या दो बार
मै: तो तब मज़ा ज्यादा आता है की जब मै करा रहा हूँ तब
रेनू: तुमसे बात करते हुए करने मे ज्यादा मज़ा आ रहा है. तुमने क्या पहना है
मै: मै भी नंगा हूँ
रेनू: तुम भी क्या अपना लंड हिला रहे हो
मै: हाँ
रेनू: मेरा होने वाला है
मै: मेरा भी
उसके बाद हम दोनों ने पानी छोड़ दिया. फिर ये हम रोज करने लगे. जिस दिन मै उसको नंगा होने को नहीं बोलता तो वो बोलती की क्या आज कुछ नहीं करेंगे तो मै बोलता की करेंगे यार. कई बार वो जब अपनी चूत मे ऊँगली कर रही होती तो बोलती की प्लीज जल्दी आओ न अपने लंड को मेरी चूत मे डालने.