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Romance काला इश्क़!
#56
update 34 

खाने में मैडम ने बस एक थाली ही आर्डर की थी, दरअसल उन्हें मुझसे कुछ बात करनी थी जो खड़े-खड़े कबाब खाते हुए मुमकिन नहीं थी| आर्डर आने से पहले ही मदमा ने अपनी बात शुरू की;

अनु मैडम: मैं अपनी इस शादी में पिछले २ साल से घुट रहीं हूँ! कॉलेज खत्म होने के बाद मेरा मन शादी करने का कतई नहीं था, बल्कि मैं तो घूमना-फिरना चाहती थी पर मेरे परिवार वालों की सोच बड़ी रूढ़िवादी थी, मेरा घूमना-फिरना उन्हें कतई पसंद नहीं था इसलिए मेरी शादी जबरदस्ती कर दी गई| कुमार (मेरे बॉस का मिडिल नाम) बहुत बोर और लालची इंसान है, उसके दिमाग में हर वक़्त पैसे ही पैसा घूमता है| दहेज़ के लालच में शादी की और इतने सालों में हम ने कभी प्यार के हसीन पल साथ नहीं बिताये! अपना अकेलापन दूर करने को मैंने पीना शुरू कर दिया और खुद उसी मायूसी में घुटती रही| ये घुटन दिन पर दिन बढ़ने लगी थी और मैं सोचने लगी थी की सुसाइड कर लूँ, पर फिर वो मुंबई वाला ट्रिप हुआ और मुझे तुम्हारे रूप में एक अच्छा दोस्त मिल गया|

इतने में वेटर एक थाली ले कर आ गया|

मैं: Mam आपने सर से इस बारे में बात की? I mean if you tell him, he might change himself …… (मैडम मेरी बात काटते हुए बोलीं)

अनु मैडम: I did but he’s too damn adamant to accept his behavior and instead blames me for it and expects me to change! This relationship is beyond repairable …and I’m gonna end it soon! I can’t live with this asshole anymore!

अब ये सुन कर मुझे बुरा लगने लगा और मैं कुर्सी पर पीठ टिका कर बैठ गया, मैडम ने पूरी का एक कौर खाया और मेरी तरफ देखते हुए बोलीं;

अनु मैडम: Don’t blame yourself for it, you’re not responsible for any of this! I told you all this cause I wanted to ask you a question?

अब ये सुन कर मेरी फटी पड़ी थी, मुझे लग रहा था की मैडम मुझे कहीं I Love You न बोल दें!

अनु मैडम: Do you support me in this decision …... as a friend?

मैं: I do mam! ….. As a friend I do!

अनु मैडम: Thank you! In case I need to crash a day or two, I’ll let you know!

ये कहते हुए मैडम हँसने लगीं और मैं भी झूठी हँसी हँसने लगा| मन ख़राब था पर मैं अपने चेहरे पर नकली हँसी बनाये हुए था, मैं नहीं चाहता था की मैडम का घर टूटे! हम अभी बाइके पर बैठ ही थे की किसी ने मेरे कंधे पर हाथ रखा और मैंने पलट के देखा तो ये मोहिनी थी!

"कहाँ घूम रहे हो?" उसने हँस कर पूछा| पर मेरे कुछ बोलने से पहले ही वो बोल पड़ी; "अच्छा जी! गर्लफ्रेंड घुमा रहे हो!!!!" उसकी बात सुन कर मैडम हँस पड़ीं और मैंने उसे प्यार भरे गुस्से से डांटते हुए कहा; "पागल! Office Mam हैं मेरी!"

"ओह..सॉरी...सॉरी..सॉरी..!!!" मोहिनी ने कान पकड़ते हुए कहा| "Its ok dear !!!" मैडम ने भी हँसते हुए कहा|

"तो यहाँ क्या कबाब खाने आये थे आप लोग?" मोहिनी ने पूछा|

"हाँ जी! GST ऑफिस से काम निपटा कर सोचा की चलो कबाब ही खा लें|" मैडम ने जवाब दिया|

"आप यहाँ क्या कर रही हो? बॉयफ्रेंड का इन्तेजार??" मैंने मोहिनी को छेड़ते हुए कहा|

"अरे कहाँ बॉयफ्रेंड! सारे अच्छे लड़के तो आपकी तरह ब्रह्मचारी हो गए हैं!" मोहिनी ने पलट कर मुझे ही छेड़ दिया|

"किसने कहा मैं ब्रह्मचारी हूँ? इतने साल टूशन पढ़ने के टाइम तो कभी मुझे कुछ कहा नहीं? बल्कि तब तो मेरे मजे लेती थी?!" मैंने कहा और मेरी बात सुन कर मैडम हैरानी से मुझे देखने लगी|

"अरे तब माँ होती थी ना! पर अब आपके पास टाइम ही नहीं है!" मोहिनी ने कहा|

हमारी इस हँसी-ठिठोली के मजे मैडम ने बहुत लिए और वो जी भर के हँस रही थी| फिर मुझे याद आया की कहीं मोहिनीं ऋतू के बारे में कहीं न बक दे, इसलिए मैंने उससे विदा ली|

मैडम और मैं बस हलकी-फुलकी बातें करते हुए ऑफिस पहुँचे, मैंने अपना बैग उठा कर सर को; "मैं जा रहा हूँ|" बोल कर निकल गया| सीधा अपनी जानेमन से मिलने उसके कॉलेज वाली लाल बत्ती पर उसका इन्तेजार करने लगा| ऋतू हमेशा की तरह मुस्कुराती हुई आई और पीछे बैठ गई| हम एक कैफ़े में पहुँचे और फिर मैंने उसे आज की सारी घटना बता दी| मेरी बात सुन कर उसे जरा भी हैरानी नहीं हुई और वो भी पूरे जोश में मैडम का सपोर्ट करते हुए बोली; "Mam ने जो भी कहा वो सही कहा! खुश रहें का हक़ सब को है, अब अगर बॉस उन्हें खुश नहीं रख पाते तो वो अपना जीवन क्यों बर्बाद करें? और इस सब में आपकी बिलकुल भी गलती नहीं है, आप नहीं होते तो मैडम सुसाइड कर लेतीं! भगवान् ने आपको उनकी जिंदगी में भेजा ही इसलिए था की आप उन्हें एक अच्छे दोस्त की तरह संभाल सकें!" मैं आगे कुछ बोल न सका, ऋतू का भरोसा खुल कर मेरे सामने आ रहा था| "अच्छा एक जरूरी बात! परसों काम्या का जन्मदिन है और उसने हम दोनों को रात की पार्टी में इन्वाइट किया है| इसलिए आपको अच्छे से तैयार हो कर आना है|" ऋतू ने जोश में आते हुए कहा|

"आजकल पार्टी कुछ ज्यादा नहीं हो रही? मेरी बर्थडे पार्टी, फिर राखी की शादी और अब ये काम्या का बर्थडे?! थोड़ा पढ़ाई में भी ध्यान दो! वैसे आंटी जी को क्या बोलोगी?" मैंने ऋतू को थोड़ा डाँटते हुए कहा|

"उन्हें मैंने पहले ही बता दिया है की घर पर पूजा है इसलिए आप और मैं 3 दिन के लिए जा रहे हैं|" ऋतू ने बड़ी सरलता से कहा|

"पागल हो क्या? तीन दिन? कहाँ है ये पार्टी?"  मैंने हैरानी से पूछा|

"जयपुर!!!" ऋतू ने उत्साह से भरते हुए कहा| मैं अपनी बड़ी-बड़ी आँखों से ऋतू को घूरने लगा की ये लड़की पागल तो नहीं हो गई|

"ऋतू तुझे हो गया है? तेरे कुछ ज्यादा पर निकल आये हैं? कहाँ तो गाँव में चुप-चाप रहने वाली लड़की आज शहर की फूलझड़ी बन गई है!" मैंने ऋतू को थोड़ा डाँटते हुए कहा| ये सुन कर ऋतू का सारा उत्साह फुर्र हो गया और उसकी गर्दन झुक गई|       

        "गाँव में मैं 'जी' कहाँ रही थी? वहाँ जो भी खुशियां मिली वो सिर्फ आपने दी, वो खुशियाँ बस तरीकों के साथ आती थी| एक लिमिटेड टाइम के लिए, कुछ भी करने से पहले दस बार सोचना की कहीं घर वाले नाराज न हो जाएँ और मेरी शादी न कर दें! पर यहाँ आ कर मुझे पता चला की लाइफ को जिया कैसे जाता है! आप अगर मुझे यहाँ ना लाते तो मैं वही गाँव की गंवार बन के रह जाती| मानती हूँ की कई बार मैं अपनी सारी हदें पार कर देती हूँ, शायद इसलिए की ये खुशियाँ मेरे लिए due थीं और बड़ी लेट मिलीं|" ऋतू ने सर झुकाये हुए ही दबी आवाज में कहा| मैं ऋतू का दर्द समझ सकता था पर ये जो Wild हरकतें वो कर रही थी वो हमारे प्लान पर पानी फेर देतीं| "ऋतू देख मैं समझ सकता हूँ पर तू जिस स्पीड पर भाग रही है वो हमारे आने वाले जीवन के लिए खतरनाक है! अगर घर में बात जारा सी भी लीक हो गई तो बवाल खड़ा हो जायेगा|" मैंने ऋतू को समझाया| ऋतू ने बस सर झुकाये हुए ही हाँ में गर्दन हिलाई और मैं उठ कर उसके बगल में बैठ गया और उसे अपने सीने से लगा लिया| 5 बजने वाले थे तो मैं उसे ले कर निकल पड़ा और उसे हॉस्टल छोड़ा और फिर अपने घर आ गया|   

                            रात के करीब दस बजे होंगे और मैं अंडे की भुर्जी बना रहा था की मेरे दरवाजे पर दस्तक हुई| मैंने दरवाजा खोला तो सामने काम्या खड़ी थी, मुझे देखते ही वो "Hi!!!" बोली| मैं उसे यहाँ देख कर भौंचक्कारह गया और हकलाते हुए "H ...H ...Hi!!!" निकला| “Can I come in?” काम्या ने पूछा तो मैंने दरवाजे पर से हाथ हटाया और उसे अंदर आने दिया और खुद दरवाजे पर ही खड़ा रहा| वो अंदर आ कर मेरे घर को देखने लगी और तब उसका ध्यान अंडा भुर्जी पर गया और उसने फटाफट किचन सिंक में हाथ धोये और खुद ही एक प्लेट में अपने लिए भुर्जी निकाल ली और ब्रेड का पैकेट खोलने वाली थी तो मैंने उसे बताया की टिफ़िन में परांठा है| उसने फ़ौरन वो निकाला और बिना कुछ आगे बोले खाने लगी| मैं चौखट से अपनी पीठ टिका कर खड़ा हो गया और उसे खाते हुए देखने लगा| आधा परांठा खाने के बाद उसे याद आया की वो किस काम के लिए आई थी; "मानु जी! प्लीज चलो ना मेरे बर्थडे पार्टी पर जयपुर? आप नहीं जाओगे तो रितिका भी नहीं जायेगी!"

"सॉरी जी! पर ऑफिस से छुट्टी नहीं मिलेगी|" मैंने कहा पर वो आज पूरा मन बना कर आई थी|

काम्या: ओह come on! ये बस एक couple get together है! आप दोनों के बिना हमें कैसे मजा आएगा?

मैं: No offence, but I don’t even know you! I mean except that you’re her friend?

काम्या: That’s the best part, you and me… I mean… we can get to know each other!

मुझे काम्या की बात बहुत अजीब लगी!

मैं: I’m sorry, बॉस छुट्टी नहीं देगा|


काम्या: अरे ऐसे कैसे? इतनी मेहनती आदमी को छुट्टी नहीं मिलेगी तो कैसे चलेगा? मैं बात करती हूँ आपके बॉस से!" काम्या ने भुर्जी खाते हुए कहा| 

मैं: Oh please! Don’t be a kid!

काम्या: ओह! समझी.... आप जानबूझ कर जाना नहीं चाहते! ठीक है मैं यहाँ से तब तक नहीं हिलूँगी जब तक आप हाँ नहीं कहते|

मैं: As you wish!

मैंने सोचा की ये कर भी क्या लेगी, कुछ देर बाद तो इसे जाना ही होगा वरना अपने घर में क्या बोलेगी? मैंने इधर ऋतू को फ़ोन मिलाया पर उसने उठाया नहीं, शायद वो सो चुकी थी| आधे घंटे तक मैं चौखट से अपनी पीठ टिकाये खड़ा रहा और काम्या मेरे पलंग पर आलथी-पालथी मारे बैठी रही|

काम्या: मानु जी! मुझे घर भी जाना है! प्लीज मान जाओ, मेरे लिए न सही पर ऋतू के लिए| उस बेचारी ने कभी जयपुर नहीं देखा वो थोड़ा घूम लेगी तो आपका क्या जायेगा? मैं उसे साथ ले जाती पर वो सिर्फ आपके साथ जाना जाती है|

अब मैं सोच में पड़ गया की ये खतरा कैसे उठाऊँ? घर पर ये बात खुलती तो काण्ड होना तय था! तभी ऋतू का फ़ोन आया और उसने मुझे फ़ोन स्पीकर पर करने को कहा; " काम्या? तेरी हिम्मत कैसे हुई उनको तंग करने की? मैंने तुझे बोला था न की हम नहीं जा रहे तू चली जा? फिर तू इतनी रात गए वहाँ क्या कर रही है?" ऋतू काम्या पर बरस पड़ी|

   "ऋतू बस! .... शांत हो जा! हम दोनों जा रहे हैं|" मेरी बात सुन कर काम्या खुश हो गई तो ऋतू खामोश हो गई| मैंने फ़ोन स्पीकर मोड से हटाया और अपने कान से लगाया| "अपनी जानेमन की ख़ुशी के लिए कुछ भी!" ऋतू को अब भी यक़ीन नहीं हो रहा था; "उस इडियट ने तो आपको तंग नहीं किया ना? मैंने उसे आपके पास जाने को नहीं बोला, मुझे तो पता भी नहीं था की वो आपके घर पर आई हुई है| अभी उसका मैसेज पढ़ा की वो आपके घर पर आपको मानाने आई है और आप मान नहीं रहे| इसलिए मैंने अभी कॉल किया!"

"जान! मैं किसी दबाव में नहीं कह रहा, बस इस पागल लड़की की बात से एहसास हुआ की मैं तुम्हारे साथ कितनी ज्यादती कर रहा था|" मैंने कहा और मेरे काम्या को पागल लड़की कहने पर वो हँस दी!

"पर घर का क्या?" ऋतू ने चिंता जताई|

"क्यों तुमने तो पहले ही बहाना ढूँढ रखा है?!" मैंने थोड़ा प्यार भरा टोंट मारा| "थैंक यू जानू! I love you!!!" ऋतू की ख़ुशी लौट आई और मुझे नहीं लगता की वो उस रात सोइ भी होगी! इधर रात के पोन ग्यारह हो रहे थे और अभी इस पागल लड़की को घर भी जाना था| "चलो आपको घर छोड़ दूँ|" मैंने ऋतू का फ़ोन काटते ही काम्या से कहा| “Thank you… Thank you… Thank you… Thank you… Thank you” कहते हुए वो मेरे नजदीक आ गई और मेरे गले लग गई पर मैंने उसे छुआ भी नहीं| "अच्छा बस मैडम! चलिए!" इतना कह कर मैंने खुद को उससे छुड़वाया और उसे घर छोड़ने निकला| मेरे घर से उसका घर करीब 20 मिनट दूर था, अब रात में कहीं कुत्ते पीछे न पड़ जाएँ इसलिए मैंने बाइके निकाली और उसे उसके घर के सामने छोड़ा| वो मुझे बाय बोल कर उछलती-कूदती हुई चली गई| मैं भी घर लौट आया और ब्रेड और ठंडी भुर्जी खा कर सो गया| 
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काला इश्क़! - by Rockstar_Rocky - 09-10-2019, 11:13 AM
RE: काला इश्क़! - by asha10783 - 12-10-2019, 05:29 AM
RE: काला इश्क़! - by Black Horse - 13-10-2019, 11:32 AM
RE: काला इश्क़! - by Arv313 - 13-10-2019, 01:16 PM
RE: काला इश्क़! - by Sam Fisher - 14-10-2019, 10:05 PM
RE: काला इश्क़! - by uttu7887 - 24-10-2019, 08:23 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 25-10-2019, 04:38 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 04-11-2019, 10:46 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 05-11-2019, 03:07 PM
RE: काला इश्क़! - by Rockstar_Rocky - 12-11-2019, 06:55 PM
RE: काला इश्क़! - by uttu7887 - 12-11-2019, 07:47 PM
RE: काला इश्क़! - by Arv313 - 12-11-2019, 09:49 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 14-11-2019, 03:30 PM
RE: काला इश्क़! - by uttu7887 - 19-11-2019, 09:19 PM
RE: काला इश्क़! - by Dev rathore - 23-11-2019, 07:05 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 25-11-2019, 04:04 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 27-11-2019, 02:29 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 27-11-2019, 03:38 PM
RE: काला इश्क़! - by chodu baba - 27-11-2019, 06:57 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 27-11-2019, 10:40 PM
RE: काला इश्क़! - by chodu baba - 28-11-2019, 01:02 AM
RE: काला इश्क़! - by chodu baba - 28-11-2019, 04:23 PM
RE: काला इश्क़! - by chodu baba - 28-11-2019, 07:51 PM
RE: काला इश्क़! - by chodu baba - 30-11-2019, 10:46 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 09-12-2019, 11:19 AM
RE: काला इश्क़! - by Arv313 - 10-12-2019, 11:11 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 11-12-2019, 07:28 AM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 15-12-2019, 09:55 PM
RE: काला इश्क़! - by Arv313 - 16-12-2019, 07:55 PM
RE: काला इश्क़! - by Arv313 - 16-12-2019, 08:00 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 16-12-2019, 08:59 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 16-12-2019, 10:48 PM
RE: काला इश्क़! - by harrydresden - 17-12-2019, 12:12 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 17-12-2019, 04:26 PM
RE: काला इश्क़! - by vedprakash - 18-12-2019, 05:58 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 18-12-2019, 10:55 AM
RE: काला इश्क़! - by Jizzdeepika - 18-12-2019, 08:27 PM
RE: काला इश्क़! - by harrydresden - 18-12-2019, 11:29 PM
RE: काला इश्क़! - by Jizzdeepika - 19-12-2019, 09:50 PM
RE: काला इश्क़! - by Arv313 - 19-12-2019, 11:05 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 20-12-2019, 06:28 AM
RE: काला इश्क़! - by Arv313 - 21-12-2019, 07:01 AM
RE: काला इश्क़! - by Jizzdeepika - 21-12-2019, 07:34 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 21-12-2019, 02:34 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 21-12-2019, 10:16 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 21-12-2019, 10:16 PM
RE: काला इश्क़! - by Jizzdeepika - 22-12-2019, 08:58 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 23-12-2019, 05:58 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 23-12-2019, 11:02 AM
RE: काला इश्क़! - by harrydresden - 23-12-2019, 10:37 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 24-12-2019, 03:23 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 24-12-2019, 10:21 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 24-12-2019, 10:24 PM
RE: काला इश्क़! - by johnni - 25-12-2019, 01:31 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 26-12-2019, 12:58 PM
RE: काला इश्क़! - by johnni - 26-12-2019, 10:32 PM
RE: काला इश्क़! - by nts - 26-12-2019, 10:41 PM
RE: काला इश्क़! - by vedprakash - 28-12-2019, 05:50 AM
RE: काला इश्क़! - by Jizzdeepika - 28-12-2019, 07:24 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 30-12-2019, 11:19 AM
RE: काला इश्क़! - by harrydresden - 30-12-2019, 10:16 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 31-12-2019, 01:45 PM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 31-12-2019, 10:35 PM
RE: काला इश्क़! - by Jizzdeepika - 01-01-2020, 09:31 AM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 02-01-2020, 07:34 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 02-01-2020, 11:21 AM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 03-01-2020, 12:09 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 04-01-2020, 05:01 PM
RE: काला इश्क़! - by uttu7887 - 04-01-2020, 09:45 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 06-01-2020, 02:47 PM
RE: काला इश्क़! - by smartashi84 - 08-01-2020, 12:45 PM
RE: काला इश्क़! - by harrydresden - 08-01-2020, 05:01 PM
RE: काला इश्क़! - by Jizzdeepika - 09-01-2020, 08:49 AM
RE: काला इश्क़! - by Prativiveka - 08-01-2020, 10:07 PM
RE: काला इश्क़! - by Jizzdeepika - 10-01-2020, 03:06 PM
RE: काला इश्क़! - by Ashuk - 10-01-2020, 11:36 PM
RE: काला इश्क़! - by kill_l - 12-11-2020, 03:20 PM



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