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Misc. Erotica काजल, दीवाली और जुए का खेल (with pics )
#18
काजल की साँसे तेज हो गयी...दरअसल केशव के जिस्म से निकल रही मर्दाना खुशबु उसे सम्मोहित सी कर रही थी...ऐसा लग रहा था की जैसे कोई नशा है जो केशव के शरीर से निकल कर उसकी सांसो मे समा रहा है..और ये सब महसूस करते-2 कब उसके निप्पल बाहर निकल कर केशव को चुभने लग गयेउसे भी पता नही चला...और केशव को लगा की शायद उसके गले मे पड़ा हुआ लॉकेट चुभ रहा है उसके सीने मे..पर फिर उसे याद आया की वो तो काफ़ी उपर बँधा है...और तब उसे एहसास हुआ की ये कोई लोकेट नही बल्कि कुछ और है...जो दोनो तरफ से एक बराबर चुभ रहा है..और उसे समझते देर नहीं लगी की वो क्या है

अब उत्तेजित होने की बारी केशव की थी...उसने लाख कोशिश की पर उसके लंड ने उसकी एक नही मानी और एकदम से तन कर खड़ा हो गया..जिसे काजल ने भी अपने पेट पर महसूस किया..

और ये था उसके शरीर पर किसी खड़े लंड का पहला एहसास...

भले ही रात के समय वो कितने ही लड़को के लंड खड़े करके मज़े लेती थी पर उनके एहसास को महसूस करने का ये पहला अवसर था उसके लिए और इस एहसास ने उसके शरीर को पसीने से भिगो दिया..और चूत को भी महका दिया

दोनो एकदम से अलग हो गये...और एक दूसरे से नज़रें चुराते हुए इधर-उधर देखने लगे..

केशव : "ओके ..दीदी ...अब मै चलता हू...अपने रूम मे..गुड नाइटऔर हां आप कल ऑफीस की छुट्टी कर लेना..हम दोनो सुबह ही हॉस्पिटल चलेंगे और माँ को घर ले आएँगे......''

काजल : "ओक....मै सुबह ऑफीस में फोन कर दूँगी...गुड नाइट..''

उस रात काजल ने अपने वर्चुअल आशिकों से कोई भी बात नही की...पर जम कर अपनी बिना बालों वाली चूत को रगड़ा
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RE: काजल, दीवाली और जुए का खेल (with pics ) - by sisfucker31 - 10-11-2019, 10:20 PM



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