30-08-2021, 09:59 PM
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Fantasy ठाकुर ज़ालिम और इच्छाधारी नाग
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30-08-2021, 09:59 PM
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30-08-2021, 10:02 PM
चैप्टर-1 ठाकुर कि शादी, अपडेट 2
समय रात के 9बजे स्थान काली पहाड़ी, डाकू रंगा बिल्ला का अड्डा Intro रंगा बिल्ला बचपन से ही दोस्त थे, जो काम करते साथ ही करते बचपन से ही गलत कामों मे लग गये थे, ना जाने कितना लूटा, बलात्कार, चोरी सब किया. दोनों ही चोदने मे एक्सपर्ट थे, हो भी क्यों ना दोनों के पास ही 10इंच का भयंकर लंड था. खास बात भी यही थी कि जिसे भी चोदते एक साथ ही चोदते. दोनों कि hight 6.5फ़ीट, चौड़ा सीना, मजबूत भुजाये राक्षस से कम नहीं थे बिल्कुल भी, काम से भी राक्षस और स्वभाव से भी राक्षस रंगा यार बिल्ला बहुत दिन से कोई बड़ा हाथ नहीं मारा, कब तक ऐसे ही चिल्लर से काम चालाना पड़ेगा? बिल्ला :- हाँ यार रंगा कोई बड़ा मुर्गा मिल ही नहीं रहा साला किस्मत ही ख़राब है. दारू भी देसी ही पीनी पड़ रही है, एक एक पैग तो बना. रंगा ने एक गिलास मे देसी दारू डाली और दोनों चूसकने लगे और गहरी सोच मे डूब गये तभी एक भीनी भीनी खुसबू कमरे मे फ़ैल जाती है और मधुर मीठी आवाज़ कमरे मे गूंजती है, मालिक मालिक मै खाना ले आई और एक खबर भी है, ऐसी खबर कि आप लोग ख़ुश हो जायेंगे रंगा बिल्ला :- आओ हमारी रखैल आओ क्या लाइ हो? ये है रुकसाना बैगम, कामगंज गांव मे ही रहती है कामगंज गांव के मौलवी कि विधवा बेटी,इसका पति परवेज खान बच्चा पैदा करने से पहले ही डाकुओ के हाथ मारा गया. देखने मे एकदम गोरी, लम्बे काले बाल, गुलाबी होंठ पूरी अप्सरा उम्र 24साल, hight 5.5इंच कमर 28 कि बलखाती, स्तन 34 उछाल भरते हुए, गोल गोल कोई लचीलपन नहीं गांड 38 कि बाहर निकली हुई चलती है तो आदमियों के लंड पानी छोड़ देते है रुकसाना को आया देख के रंगा बिल्ला धोती के ऊपर से ही लंड सहलाने लगे, क्या खूबसूरत थी रुखसाना देखते ही लंड खड़ा हो जाता था. रुकसाना :-मालिक मेरे होते हुए अपने हाथो को क्यों तकलीफ देते है, ऐसा बोल के रुकसाना दोनों के बीच मे बैठ के धोती के ऊपर से ही दोनों के लंड सहलाने लगी "मालिक आपकी ये रंडी आपके लिए चिकन लाइ है और खबर भी" रंगा :- क्या खबर है छिनाल? मालिक मेरे गांव मे रहने वाले किसान रामनिवास कि लड़की कि शादी पास के गांव ठाकुर ज़ालिम सिंह से होने वाली है. सुना है ठाकुर मंगलवार को रामनिवास के घर शादी कि तारीख फिक्स करने आएगा. बोलते बोलते रुकसाना ने दोनों के लंड बाहर निकल लिए और खेलने लगी. बिल्ला :- वाह क्या खबर लाइ है मेरी रांड वाह दिल ख़ुश कर दिया, आज रात भर तुझे इनाम देंगे तुझे ऐसी खबर सुनाने के लिए. रुकसाना के चेहरे पे वासना और शर्माहाट के मिले जुले भाव थे. उसे आज भी याद है जब वो विधवा होके अपने मायके वापस आई थी उसकी तो दुनिया ही लूट चुकी थी. एक दिन रंगाबिल्ला के पीछे सिक्युरिटी लगी थी और दोनों किस्मत से मौलवी साहेब के घर घुस आये थे यही पर पहली बार रुकसाना को देखा तो देखते ही रह गये क्या जवानी थी क्या हुस्न था रुकसाना का दोनों डाकू अपना आपा खोचुके थे, रात भर रंगा बिल्ला ने रुकसाना को जम के चोदा. गांड चुत सब फाड़ के रख दिया अगले दिन जब रुखसाना उठी तो रंगा बिल्ला जा चुके थे परन्तु रुखसाना के चेहरे पे खुशी थी उसी वो संतुष्टि मिली थी जो आज तक कभी उसके पति से भी ना मिली दुख भरी जिंदगी मे बाहर आ चुकी थी, सावन जम चूका था तब से ही रुखसाना रंगा बिल्ला कि सेवा मे तत्पर थी वो उन दोनों के लंड कि दीवानी थी उसे वो दोनों लंड दिनरात अपनी चुत और गांड मे चाहिए था. रुखसाना :-मेरे मालिकों मै तो कब से आपके इनाम कि ही राह देख रही हूँ आज जम के चोदीये मुझे रात भर कस कस के चोदीये रंगा :- तेरी यही अदा तो हमें दीवाना बनाती है. रंगा बिल्ला ने अपनी धोती अपने शरीर से अलग कर दी अब दोनों ही पूर्णतया नंगे थे ऐसा लगता था जैसे दो काले भसण्ड राक्षसों के बीच कोई गोरी गुलामी चमड़ी कि परी फस गई हो बिल्ला :- आजा मेरी जान देख कैसे ये लंड तेरे प्यार के लिए तरस रहा है. रुखसाना तुरंत अपने घुटनो पे झुक गई और बिल्ला के लोडे को बिना हाथ लगाए ही सूंघने लगी उसे ये खुसबू बहुत पसन्द थी, लंड कि खुसबू उसे मदहोश करती थे रुखसाना ने धीरे से अपना सीधा हाथ बिल्ला के टट्टो पे रख लिया और सेहलाने लगी टट्टे थे कि टेनिस बॉल, पता नहीं कितना वीर्य भरा पडा था इन टट्टो मे रंगा :- मुँह खोल छिनाल चूस लोडे को, दारू कि चुस्की लेते लेते रंगा दोनों को देखते हुए बोल रहा था रुखसाना भी बड़ी अदा से बिल्ला का लंड चाट रही थी जैसे कोई कुतिया हो. अब धीरे धीरे बड़ी मादक अदा के साथ रुखसाना ने अपनी गांड रंगा कि तरफ घुमा दी और होले होले अपनी 38 कि उछलती गांड हिलाने लगी जैसे रंगा को निमंत्रण दे रही हो ये कला रुखसाना मे रंगा बिल्ला से पहली बार सम्भोग के बाद ही उत्पन्न हुई थी वरना तो उसका पति सिर्फ लहंगा उठा के पेल देता था सिर्फ, उसके भी लगता था कि यही सम्भोग है. परन्तु नियति ने उसे रंगा बिल्ला से मिलवाया, रुखसाना को अहसास हुआ कि सम्भोग मे मजे लेने है तो पहले मजे देने भी होंगे. सम्भोग का आनंद तब ही है जब बेशर्म रांड बन के चुदवाया जाये. रंगा :- वाह मेरी रांड वाह क्या अदा है तेरी, क्या गांड है मन करता है अभी लंड पेल दू. रुखसाना :- तो पेल दीजिये ना मालिक रोका किसने है? रंगा :- चुप रांड मालिक से जबान लड़ाती है, तुझे तो पेलुँगा ही लेकिन अपने तरीके से ये बोल के रंगा बिल्ला एक दूसरे को देख के हॅसने लगे अब देखना है कि रुखसाना कैसे चुदती है? कितना दम है रंगा बिल्ला के लोडे मे?
30-08-2021, 10:04 PM
चैप्टर -1, ठाकुर कि शादी, अपडेट 3
इसी वक़्त काली पहाड़ी से 2km दूर एक मंदिर स्थित था जहाँ एक तांत्रिक साधना मे लीन था और उसके सामने हाथ जोड़े ठकुराइन रूपवटी बैठी थी प्रतीक्षा कर रही थी कि कब तांत्रिक बाबा आंखे खोले, तांत्रिक उलजुलूल उम्र 50साल, काला कलूटा दुबला पतला सम्भोग मे कोई दिलचस्पी नहीं सारा ध्यान अपनी तपस्या मे. लंड तो 12इंच और 5 इंच मोटा है लेकिन उसका कोई उपयोग नहीं लंड किसी सांप कि तरह लटका रहता है. तांत्रिक हमेशा नंगा ही रहता है रूपवाती बैठी बैठी तांत्रिक के आंख खोलने का इंतज़ार कर रही थी अचानक उसकी नजर तांत्रिक उलजुलूल के लंड मे पड़ती है ठकुराइन दंग रह जाती है कि ऐसा भी हो सकता है किसी का और अपनी आंखे बंद कर लेती है और अपने विचारों मे खो जाती है हे भगवान ये कैसी नियति है तेरी नाम मेरा रूपवाती और रूप दिया ही नहीं? बद्दी काली कलूटी मोटी क्यों बनाया मुझे? मेरा पति ज़ालिम ठाकुर जिसके पास 3इंच का लंड है कभी सुख ही नहीं दे पाया और एक ये तांत्रिक उलजुलूल है जिसके पास इतना बड़ा लंड है लेकिन किसी काम का नहीं. जिसको देना चाहिए उसको दिया नहीं और जिसको नहीं चाहिए उसको भर भर के दिया हे भगवान.....! शांत हो जाओ रूपवाती इसमें तुम्हारा दोष नहीं है नियति ने कुछ अच्छा ही लिखा है तुम्हारे लिए रूपवाती आवाज़ सुन के चौक गई. ये आवाज़ तांत्रिक उलजुलूल कि थी जो कि ध्यान से बाहर आ चुके थे और ठकुराइन कि मन कि बात पढ़ ली थि. तांत्रिक :- रूपवाती ऐसा नहीं सोचते नियति ने सभी को सब सोच समझ के ही दिया है, तुम्हे सम्भोग सुख सुंदरता नहीं मिली इसका भी कोई कारण होगा? रूपवती :- बाबा मै हिम्मत हार चुकी हूँ मेरे पति मे मुझे मेरी कुरूपता के चलते छोड़ दिया है और सुना है कि दूसरी शादी करने जा रहे है.. तांत्रिक :- चिंता मत करो बेटी ये शादी नियति का फल है. परन्तु मेरे पास एक उपाय है जिस से तुम्हारी कया पलट हो जाएगी. रूपवती ख़ुश हो गई "वाह ऐसा हो सकता है बाबा " तांत्रिक :- क्यों नहीं हो सकता?बस थोड़ा मुश्किल है रूपवती :- आप उपाय बताइये बाबा मै कुछ भी करने को तैयार हूँ? तांत्रिक :- ऐसा है तो तुम्हे एक इच्छाधारी नाग ढूंढ़ना होगा और उसके साथ सहवास करना होगा जब नाग तुम्हारी योनि मे स्खालित होगा तब उसकी समय तुम्हारी काया पलट हो जाएगी. तुम अति सुन्दर गोरी हो जाओगी. रूपवती :- लेकिन ऐसे कैसे होगा बाबा? तांत्रिक :- उसके लिए तुम्हे मेरा आशीर्वाद लेना होगा, पूर्ण नंग अवस्था मे. रूपवती समझ नहीं पाई कैसा आशीर्वाद? तांत्रिक :- तुम्हे मेरा वीर्य पीना होगा? लेकिन तुम मेरे लिंग को हाथ नहीं लगा सकती मेरे वीर्य मे है मेरी शक्ति है मेरा आशीर्वाद है दूसरी तरफ काली पहाड़ी मे बने रंगा बिल्ला के अड्डे पे रुखसाना का ब्लाउज उतर चूका था दो गोलाकार मोटे मोटे सुडोल स्तन चिमनी कि रौशनी मे चमक रहे थे रुखसाना बिल्ला का लंड पकडे चूस रही थी और किसी कुतिया कि तरह रंगा के सामने अपनी गांड हिला रही थी अब रंगा का सब्र जवाब दे जाता है वो तुरंत उठता है और एक जोरदार झापड़ रुखसाना कि गांड पे जड़ देता है रंगा :- छिनाल साली गांड हिलती है, मुझे उकसाती है बहुत भारी पड़ेगा और एक चाटटाक थप्पड़ दूसरी गांड पे जड़ देता है रुखसाना दर्द से बिलबिला उठती है लेकिन मुँह मे बिल्ला का लंड गले तक फसे होने के कारण आवाज़ नहीं निकल पाती उतने मे रंगा रुखसाना का लहंगा पकड़ के खींच देता है वाह क्या गांड है गोरी गोरी गांड पे थपड के दो लाल निशान रंगा बिल्ला गांड देख के पागल हो जाते है और अपना एक एक हाथ गांड पे रख के सहलाने लगते है वासना अपनी चरम सीमा पे थी इस कमरे मे. उधार 2km दूर मंदिर मे रूपवती हैरान परेशान थी कि आशीर्वाद कैसे ले ऐसा उसने कभी किया ही नहीं था हालांकि रूपवती सम्भोग कि भूखी थी परन्तु बिना हाथ लगाए वो वीर्य कैसे पीयेगी? वो भी तांत्रिक जिसे काम वासना मे कोई दिलचस्पी ही नहीं है. क्या करेगी नियति अब? रूपवती आशीर्वाद स्वरुप वीर्य पी पायेगी? रूखसाना के साथ आज विचित्र सम्भोग होने वाला था ये इच्छाधारी नांग कौन है? क्या ठाकुर शादी कर पाएंगे? बने रहिये अपने दोस्त andy pndy के साथ इस रोमांचक सफर पे.
30-08-2021, 10:06 PM
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30-08-2021, 10:11 PM
चैप्टर 1, ठाकुर कि शादी, अपडेट 5
काली पहाड़ी से 2km दूर मंदिर मे रूपवती तांत्रिक कि तरफ बढ़ती है और हाथ जोड़ के धन्यवाद करती है रूपवती :- धन्यवाद बाबा मुझमे विश्वास पैदा करने के लिए, मेरे अंदर कि नारी को जगाने के लिए मै आपका आर्शीवाद जरूर प्राप्त करूंगी, आपका वीर्य ग्रहण करूंगी तांत्रिक :- इतना आसान नहीं होगा ठकुराइन मेरा आशीर्वाद पाना रूपवती :- मै इस कुरूपता को त्यागने के लिए कुछ भी कर सकती हूँ बाबा, उस ठाकुर ज़ालिम सिंह ने मुझे मेरी कुरूपता कि वजह से त्यागा है उसको सबक सिखाने के लिए, असली रूपवती बनने के लिए मै किसी भी हद तक जा सकती हूँ ऐसा सुन के तांत्रिक उलजुलूल अपने स्थान पे बैठ गया, जो कि पत्थर का कुर्सीनुमा सिंघासन था तांत्रिक अपने दोनों पैर फैला के बैठ गया जिस वजह से उसका 12इंच का लिंग दोनों पैर के बीच किसी सांप कि तरह झूल रहा था ये नजारा देख रूपवती सिहर उठती है साथ ही मन मे एक मदहोसी सी उठती है इतने बड़े लिंग को देख कर रूपवती आगे बढ़ती है और पास रखे कटोरे को तांत्रिक के लिंग के नीचे रख देती है और बाबा को प्रणाम करती हुई पीछे हटती है.. आज उसे वो काम करना था जो आजतक नहीं किया था रूपवती तांत्रिक कि आँखों मे देखती है और धीरे से अपनी साड़ी का पल्लू सरका देती है जिस वजह से रूपवती के बड़े बड़े काले स्तन कि घाटिया उभर के सामने आ जाती है तांत्रिक एक टक स्तन को घूरने लगता है लेकिन चेहरे पे कोई भाव नहीं आता, आंखे पथराई सी रहती है. रूपवती मन मे :- कैसा पत्थर इंसान है ये तांत्रिक साथ ही अब अपनी पूरी साड़ी खोल चुकी थी, रूपवती समझ चुकी थी कि ये उसकी परीक्षा है उसे अपने शरीर से एक पत्थर को पिघला के उसका रस निकालना था. वही रंगा बिल्ला के अड्डे पर रुखसार कामवासना मे जल रही थी, हवस से उसकी आंखे लाल हो गई थी उसकी चुत और गांड मे लगातार रंगा और बिल्ला कि जबान चल रही थी दोनों ही उसकी गांड से शराब निकाल लेना चाहते थे. रंगा अपनी जीभ को आगे से तिकोना करता है और पूरीजीभ रुखसाना कि चुत मे घुसा के आगे पीछे करने लगता है रुखसार के धैर्य का अब कोई ठिकाना ही नहीं था, फिर भी अपनी गांड को पूरी ताकत से भींचे अपने स्खलन को रोके हुए थी. लज्जत से आंखे बंद थी ऐसा लग रहा था कि कोई तूफान गांड और चुत मे कैद है जो किसी भी कीमत पे आज़ाद होना चाहता है. इधर बिल्ला रुखसाना कि गांड को चाट रहा था अपनी जीभ घुसाने कि कोशिश कर रहा था लेकिन रुखसाना पूरी ताकत से गांड भींचे आनंद कि चरम सीमा पे थी, कामवासना मे डूबा ऐसा बम थी जो कभी भी फट सकता था.परन्तु इस बम के फटने मे असीम आनंद था वो आनंद जो शारब का नशा भी देता बिल्ला पूरी कोशिश करता है परन्तु सफल नहीं हो पाता वो अपना पूरा मुँह खोल के गांड के छेड़ के इर्द गिर्द कब्ज़ा कर लेता है जैसे खा ही जायेगा रंगा ने भी बिल्ला को देखते हुई पूरी चुत मुँह मे भर ली और चुत के दाने को मुँह मे ले के जोर से दबा दिया.... आआआ हहहह ..... नहीं आआआ हहहहहह किसी शेरनी कि गर्जना करती रुखसाना भरभरा के रंगा बिल्ला के मुँह मे झड़ने लगी.... फट फट .... फुर्रररररर कि आवाज़ के साथ गांड खुल गई और ढेर सारी शराब तेज़ प्रेशर के साथ सीधा बिल्ला के मुँह मे जाने लगी, और कुछ नीचे रिसती हुई चुत के रास्ते रंगा के मुँह मे जाने लगी. रुखसार बैदम सी निढाल ही के आगे को पसर गई लेकिन बिल्ला ने गांड को सहारा दे के उसे ऊपर कि तरफ ही टांगे रखा और गांड से निकली शराब पिने लगे. एक भी बून्द जमीन मे नहीं गिरने दी,खूब चाट चाट के चूस चूस के जीभ गांड के अंदर डाल के, मुँह से खींच खींच के दोनों ने खूब शराब पी शराब पिने ने ऐसा आनंद आज तक नहीं आया था.... जब पूरी शराब ख़त्म ही गई तो बिल्ला ने रुखसाना को छोड़ दिया. रुखसाना किसी कटे पेड़ कि तरह ढह गई, लम्बी लम्बी सांसे खींचने लगी ऐसा स्खलन उसे आज तक नहीं मिला था वो अंदर तक तृप्त हो चुकी थी. अब रंगा बिल्ला शराब के नशे मे धुत रुखसाना को हाफ्ता देख रहे थे.... और जोर का ठाहका लगा रहे थे. लंड अभी भी दोनों के बराबर खडे थे, आंखे हवस से भरी हुई थी... रुखसाना समझ चुकी थी अब आगे क्या होना है काली पहाड़ी से दूर मंदिर मे रूपवती अब सिर्फ ब्रा और पैंटी मे थी, तांत्रिक भी उसकीकाया देख के हैरान था ऐसी स्त्री उसने भी आज तक नहीं देखि थी रूप वती तांत्रिक के सामने घुटनो पे बैठ जाती है और अपनी एक ऊँगली मुँह मे डाल के कुछ देर चुस्ती है, ऐसे चुस्ती है जैसे कि लंड को और ऐसा करते हुए रूपवती कि नजर तांत्रिक के लिंग पे ही थी अब वो अपनी ऊँगली को बाहर निकलती है उसपे लगे थूक को तांत्रिक कि तरफ दिखा कर अपने होंठ पे फेरने लगती है रूपवती खुद नहीं जानती थी कि वो ऐसा कैसे कर ले रही है उसने तो कभी ऐसा देखा सुना ही नहीं था. अपनी मनमोहनी अदाओ से रूपवती तांत्रिक को रिझा रही थी. रूपवती अपने होंठो को गोल कर के ऊँगली अंदर बाहर करने लगी, थूक रिसते हुए ब्रा मे कैद स्तन पे गिर रहा था. इतना थूक गिरा रही थी कि ब्रा गीली हो चली थी. गिलापन तो नीचे पैंटी मे भी उत्पन्न होने लगा था, रूपवती हैरान थी कि ऐसे कैसे हो रहा है कभी भी इतनी वासना हावी नहीं हुई कि पैंटी गीली हो सके. बिना किसी मर्द के छुए चुत गीली कैसे हो रही है. क्युकी ठाकुर साहेब के साथ तो सम्भोग ना के बराबर ही था, वासना मे डूबी रूपवती आज कुछ भी कर गुजरने को तैयार थी रूपवती अपने काले घने बालो को खोल के लहरा देती है और दोनों हाथ सर के पीछे रख अपनी काली कांख(armpit) दिखाते हुए तांत्रिक कि आँखों मे देखती है... वासना से भारी आँखों से देखते हुए रूपवती अपनी नाक कांख के करीब लाती है और एक गहरी सांस लेती है आज ये खुसबू उसे मदहोश कर रही थी, पसीने और इत्र कि मिली जुली खुसबू मंदिर के इस छोटे से गुफा नुमा कमरे मे फ़ैल जाती है. ये खुसबू तांत्रिक कि नाक मे पहुँचती है, तांत्रिक हल्का सा विचलित होता है परन्तु इस विचलन को रूपवती भांप नहीं पाती और अपनी जीभ निकल के पता नहीं किस आवेश मे अपनी कांख चाटने लगती है आज तक ये काम घृणाप्रद था परन्तु आज यही काम सुख प्रदान कर रहा था. काम वासना मे औतप्रोत रूपवती पूरी जीभ निकाल के अपनी कांख ऊपर नीचे चाटने लगती है और एकटक तांत्रिक कि आँखों मे देखती रहती है. ऐसा ही वो अपनी दूसरी कांख के साथ करती है दोनों ही कांख थूक से पुरे गीले हो चुके थे, जबान थी कि फिसले ही जा रही थी, रूपवती कि शरीर बेहद गरम होने पे आया था ऐसा लगता था जैसे रूपवती जल के खाक हो जाएगी... कथा जारी है
30-08-2021, 10:15 PM
अपडेट -5 contd....
अब ये गर्मी सहन से बाहर थी रूपवती अपनी एडियों के बल बैठ जाती है और पीछे हाथ ले जा के अपनी ब्रा का हुक खोल देती है अब तांत्रिक भी बैचेन होने लगता है उसे कुछ देखना था, वो खजाना देखना था जो पर्दे के पीछे था. टक.... कि आवाज़ के साथ ब्रा खुल के आगे को लटक जाती है परन्तु रूपवती उसे गिरने नहीं देती और एक हाथ से दोनों स्तन को ढक लेती है और एक हाथ सर के पीछे मदहोसी मे आंख बंद किये अपनी कांख को चाटने लगती है. ऐसा शानदार नजारा तांत्रिक क्या उसके पूर्वज ने भी कभी नहीं देखा था. तांत्रिक मन मे :- हे देवता ये स्त्री को समझ पाना भी कितना मुश्किल है, किसी ने सही कहाँ है जब कोई घरेलु औरत हवस, कामवासना पे उतर आये तो पत्थर तक़ पिघला दे. रूपवती तांत्रिक कि आँखों मे देखती हुई धीरे धीरे अपने हाथ स्तन से हटा लेती है.... आअह्ह्ह.... क्या नजारा था मोटे मोटे सुडोल स्तन धम से तांत्रिक के सामने छलछला गये. ये नजारा देखते ही तांत्रिक के लिंग ने एक जोरदार झटका मारा और वापस लटक गया. इस बार लिंग कि ये हरकत रूपवती कि नजर मे आ गई थी. वो समझ चुकी थी कि वो सही रास्ते पर है... उसे और आगे बढ़ना होगा उसकी मेहनत सफल हो रही है अब रूपवती भी गरम थी हवस से भरपूर थी, वो अपने घुटने के बल हाथ आगे कर के चौपया हो जाती है, ऐसा करते ही उसके स्तन आगे को लटक जाते है जैसे कोई दुधारू कुतिया हो. इसी स्थति मे रूपवती घुटनो के बल किसी कुतिया कि तरह जीभ अपने होंठों पे फेरती हुई तांत्रिक कि और बढ़ चलती है और एक दम करीब पहुंच कर अपने दोनों स्तन ऊपर को उठा कर तांत्रिक को दिखाती है और बारी बारी एक एक स्तन को हाथो से ऊपर नीचे हिला हिला के मादक अदा दिखाती है. तांत्रिक ऐसा नजारा देख के दंग रह जाता है उसे लगता है वो अपना कण्ट्रोल खो देगा. इधर रूपवती खुद हैरान थी कि वो ऐसा कैसे कर पा रही है, लेकिन इसमें एक मजा था, एक कसक थी रूपवती खुद अपनी हरकत से उत्तेजित होती जा रही थी. अँधेरी गुफानूमा कमरे मे दिये कि मद्दम रौशनी मे आज कामवासना का खेल अपने चरम पे था. उधर काली पहाड़ी रंगा बिल्ला के अड्डे पर भी नजारा कुछ कम नहीं था मादकता चारो तरफ फैली थी शराब और चुत से निकले पानी कि खुसबू कमरे मे फ़ैल गई थी हाफ़ती हुई रुखसाना को देख के रंगा मुस्कुराता है और उसके मुँह पे जा के बैठ जाता है. रंगा:- चल रांड गांड चाट मेरी, ऐसा कह के अपनी गली गांड रुखसाना के होंठो पे रख देता है और उसके टट्टे रुखसाना कि नाक मे घुसे जाते है और लंड माथे पर टक्कर देता है रुखसाना जो अभी अभी बुरी तरह झड़ी थी वो रंगा के लंड और गांड कि खुसबू पा के फिर उत्तेजित होने लगती है. उसकी खास बात ही यही थी कि वो चुदाई से कभी थकती नहीं थी. तुरंत अपनी जीभ निकल के रंगा कि गांड के छेद को कुरेदने लगती है बड़ा कसैला स्वाद था परन्तु उसे वो पसंद था. इधर बिल्ला चिकेन खाने और दारू पिने मे बिजी था और किसी भैसे कि तरह पड़ा हुआ रंगा कि गांड चटाई देख रहा था. अब रुखसाना ने अपनी जीभ तिकोनी के रंगा कि गांड मे घुसाने कि कोशिश कि. रंगा :- वाह रांड वाह तेरा कोई जवाब नहीं चाटने मे भी उस्ताद और चाटवाने मे भी उस्ताद. रुखसाना :- मालिक सब आप कि ही कृपा है, अपने ही जगाया है मेरे अंदर कि रांड को रंगा का लंड उत्तेजना मे पत्थर कि तरह कड़क हो जाता है और उछाल उछाल के रुखसाना के माथे पे चोट करने लगता है. अब रुखसाना रंगा के टट्टे मुँह मे भर के चूस राही थी. बिल्ला :- रांड मेरा भी चूस ले, या आज रंगा को ही पीयेगी. हाहाहाहाहा इतना बोल के जमीन पे लेती रुखसाना के मुँह के पास आ के बैठ जाता है और अपने लंड कि चोट उसके गालो पे करने लगता. रंगा अपना लंड रुखसाना के मुँह मे ठूस देता है बिल्ला भी कहाँ पीछे रहने वाला था बिल्ला :- ले रांड मेरा लंड भी ले मुँह मे अब रुखसाना के लिए एक लंड लेना ही मुश्किल था दो दो कैसे घुसाती मुँह मे, फिर भी कोशिश करती है और दोनों लंडो को पकड़ के एक साथ चाटने लगती है रंगा एक हाथ पीछे ले जा के चुत के दाने से खेलने लगता है. उत्तेजना और लज्जत कि वजह से रुखसाना हद से ज्यादा मुँह खोलती है और एक साथ दोनों लंड को अंदर ले लेती है. अब हालात ये थे कि रंगा अपना लंड थोड़ा बाहर निकलता तो बिल्ला अपना भारी लंड गले टक ठूस देता, फिर बिल्ला लंड बाहर खींचता तो रंगा अपना भयंकर लंड जड़ तक़ थोक देता. कमरे मे गु गु गुमममम फच फच कि आवाज़ गूंज रही थी. रुखसाना के मुँह से ढेर सारा थूक निकल निकल के फर्श पे गिरता जा रहा था. रंगा लगातार रुखसाना कि चुत पे हाथ चलाये जा रहा था दोनों ही कोई रहम दिखाने के मूड मे नहीं थे तीनो ही परम आनद कि चरम सीमा पे थे. करीबन आधे घंटे हो गये थे मुख चुदाई को अब रंगा बिल्ला झड़ने वाले थे. धप घप घप.... आअह्ह्ह आअह्ह्ह हुंकार भरते हुए रंगा बिल्ला स्खालित होने लगे, मारे उत्तेजना के दोनों ने एक साथ ही अपना लंड रुखसाना के गले मे झाड तक़ ठूस दिया दोनों के टट्टे बुरी तरह रुखसाना के चेहरे पे दब गये थे. भल भला के दोनों का वीर्य रुखसाना के गले और मुँह मे भरने लगा... एक मिनट तक़ दोनों ही अपने टट्टो को खाली करते रहे. पूरी तरह खाली होने के बाद दोनों रुखसाना के अजूबाजू ढह जाते है. रुखसाना खासती घरघारती बेचैनी से पेट के बल पलट जाती है, उसकी सांसे किसी धोकनी कि तरह चल रही थी सारा वीर्य उसके पेट मे जा चूका था एक बून्द भी व्यर्थ नहीं गया था. रुखसाना तो वीर्य पी चुकी थी. क्या रूपवती भी वीर्य पी पायेगी? बने रहिये..... रूपवती कि अदाओ के साथ जल्दी मिलेंगे
01-09-2021, 06:55 PM
(This post was last modified: 07-06-2024, 03:33 PM by Andypndy. Edited 2 times in total. Edited 2 times in total.)
05-09-2021, 03:20 AM
Bahut umda story hai dost ......jalim thakur saala naam ka Thakur......is story me sab ki kismat alag hai.... dekhte hai aage kya hota hai....
10-09-2021, 02:12 PM
(This post was last modified: 19-09-2021, 10:37 AM by Andypndy. Edited 1 time in total. Edited 1 time in total.)
Contd...
10-09-2021, 02:14 PM
(This post was last modified: 19-09-2021, 10:38 AM by Andypndy. Edited 1 time in total. Edited 1 time in total.)
Contd..
14-09-2021, 07:09 AM
Awesome story...pls don't stop...keep updating..
14-09-2021, 11:19 AM
Superb... Nice story..
Waiting for next upload...
17-09-2021, 11:29 AM
Kidhar ho bhai...
Waiting for next upload...
19-09-2021, 10:40 AM
(This post was last modified: 07-06-2024, 03:34 PM by Andypndy. Edited 1 time in total. Edited 1 time in total.)
19-09-2021, 10:42 AM
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