Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मैंने मासी की होंठ चूसना शुरू किया। इस बार मासी भी साथ दे रही थी। मुझे अब मासी के होंठ चूसने में बहुत मजा आ रहा था। मै मासी के होंठो को चूस चूस कर उनकी पीठ को सहला रहा था।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी भी मुझे बड़ी कातिलाना नजरों से देख रही थी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी और हम एक दुसरे के होंठो को बारी बारी से चूस चूस कर लाल कर दिया। मासी की होंठ गुलाब की पंखुड़ियों जैसे लाल लाल दिखने लगे।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मै मासी की बूबा को दबाने लगा। मासिने भी मेरे लंड को सहला रही थी। मैंने अपना लंड मासी के करीब कर दिया। मासी मेरा लंड हाथ में ले के हिला हिला कर मजे ले रही थी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी को मैंने खड़ी होने को कहा। मासी खड़ी हो गयी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी को मैंने खड़ी होने को कहा। मासी खड़ी हो गयी। मैंने मासी के गले पर किस करते हुए मासी की समीज निकाल दी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी दीवाल से चिपकी खड़ी रही। मासी ब्रा में एकदम झक्कास लग रही थी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मैंने मासी के सलवार का नाड़ा खोला।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
नाड़ा खुलते ही सलवार नीचे गिर गया। मासी ने लाल रंग की ही ब्रा और पैंटी पहनी थी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी की सॉलिड बॉडी देखते ही मेरा लंड चोदने को बेकरार हो गया। मैंने भी अपना पैजामा निकाला और अपना बड़ा मोटा लंड मासी के सामने पेश किया।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
सी मेरे बड़े मोटे लंड को देखकर चौक गई।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
पने मुँह पर हाथ लगाकर बोली- बाप रे इतना बड़ा और मोटा लंड मैंने पहली बार देखा है। मुझे तो यकीन नहीं होता की तुम्हारा इतना बड़ा लंड है।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
वो सिर्फ मेरे लंड को हाथों में लेकर खेल रही थी। मुठ मारते हुए मासी झुकी हुई थी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
ने मासी की ब्रा को निकाल कर बिस्तर पर फेंक दिया। मासी ने जब अपना सर उठाया तो मैं उनकी चूंचियों को देखता ही रह गया।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी की मैंने बिस्तर पर लिटाकर उनका दूध पीने लगा।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी कक काले रंग का निप्पल बहुत ही आकर्षक लग रहा था। मैं मासी दोनों चूंचियों को जोर जोर से दबा दबा कर पी रहा था।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी की साँसे गरम गरम बाहर निकल रही थी। जब भी मै मासी का निप्पल काटता मासी..अई…अई… अई..अई. .इसस्..स्स्स्..स्स्..स्स् करने लगती।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मैंने मासी की चूत पर बार बार अपनी हाथ को फिर रहा था। मासी बहुत ही गर्म हो चुकी थी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मासी की पैंटी को मै चूंचियां पीते पीते ही निकाल रहा था। मासी भी अब मजे ले ले लेकर मेरे लंड को आगे पीछे कर रही थी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
Posts: 84,697
Threads: 947
Likes Received: 11,474 in 9,512 posts
Likes Given: 22
Joined: Dec 2018
Reputation:
118
मैंने भी अपनी टी शर्ट उतारी।
जिंदगी की राहों में रंजो गम के मेले हैं.
भीड़ है क़यामत की फिर भी हम अकेले हैं.
•
|