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जवान औरतों और लड़कियों की प्यासी जवानी
#1
गन्ने के जूस वाले का मोटा लंड लेकर चूत की खुजली मिटाई
 
[Image: images-8.jpg] 


दोस्तों मेरा नाम अमीना खान है और मैं एमपी भोपाल से हूँ. मैं एक हाउसवाइफ हूँ और एमवे में एजेंट हूँ. मेरी एज 37 साल की है और मेरे पति 43 साल के है. मेरे पति गवर्नमेंट स्कुल में पियून है. मेरी फिगर 38 -36 -38 की है और मैं सांवली सी हूँ. मेरे बूब्स और गांड बहुत बड़े है. मेरे पति दिनभर स्कुल में रहते है और मैं एजंट बनाने के लिए और अपने कमिशन के लिए घुमती हूँ. अक्सर मैं मीटिंग के लिए भी होटल वगेरह में जाती हूँ. मेरा अफेयर एमवे के ही एक मेनेजर के साथ में है. और वही मुझे एजंट बनाने में मदद करता है. और बदले में मैं उसे शारीर का सुख देती हूँ. उसका नाम विनोद है और उसकी वाइफ मर गई है. वो रंडवा है और उसे सेक्स की बहुत जी जरूरत सी है. इसलिए मैं उसका यूज करती हूँ अपने फायदे के लिए. वैसे मेरे को भी सेक्स की जररूत रहती है क्यूंकि मेरे पति को अब चोदने में कोई दिलचस्पी नहीं रही है. वो बस काम और घर पर धार्मिक किताबे पढता रहता है.
अक्सर टीचर और प्रिंसिपल लोग मेरे पति को अपने घर के फंक्शन वगेरह में भी काम करने के लिए बुलाते है. ऐसे ही समर के दिन चल रहे थे. दिन तो सन्डे का था लेकिन मेरे पति को उसके एक टीचर ने पार्टी के लिए बुलाया हुआ था. मेरे पति ने पहले ही बोला था की मेरे को शाम का खाना वही खाना है. इसलिए मैं समझ गई की पार्टी के बाद उन्हें आने में कम से कम रात तो होनी ही होनी है. मेरे बेटे अमित ने भी बोला की मम्मा मैं फुटबोल के लिए जा रहा हूँ और शाम को हम लोग अपने एक दोस्त के घर खायेंगे.
मैं घर पर अकेली ही रहने वाली थी. और होर्नी भी फिल कर रही थी. विनोद को कॉल किया तो उसके वहां उसकी बहन और जीजा आये हुए थे. मन हल्का करने के लिए मैं एमवे की फ़ाइल ले के एक प्रोस्पेक्टीव क्लाइंट के वहां गई. दोपहर थी और गर्मी भी खूब थी. क्लाइंट ने भी ऑलमोस्ट हड़का ही दिया क्यूंकि सन्डे जो था. मैं मन ही मन उसे माँ बहन की गालियाँ देते हुए वापस आ गई. और मेरे घर के सामने जो खुला मैदान सा है वहां गन्ने के ज्यूस वाला इकबाल भाई है उसके वहां बैठी प्लास्टिक की चेयर पर. अपने गोगल्स निकाल के मैंने कहा एक ज्यूस तो पिला दो यार.

वो बोला, हां बैठो भाभी.
वो लुंगी पहने हुए था और मैं मन ही मन सोचने लगी की इसका लंड कितना बड़ा होगा! और ये सोचने से मेरे अंदर की औरत जाग गई. मैं गरम हो गई थी. और मैंने सोचा की अगर आज ये मुझे चोदे तो मैं उसका भी लंड ले लुंगी. वैसे दोपहर की वजह से रोड सन्नाटा था और मेरा घर वहाँ से कुछ सो दो सो फिट की दुरी पर ही था. मैंने उसे उत्तेजित करने के लिए अपने दुपट्टे को हटा दिया. अंदर मैंने टॉप पहना हुआ था. इकबाल के ठेले पर अब कोई और कस्टमर भी नहीं था. मैंने कहा आज तो बहुत ही गर्मी है. 
और ऐसे बोलते हुए मैंने धीरे से अपने टॉप के एक बटन को खोला और टॉप को हिला दिया जैसे मैं अंदर हवा डाल रही थी. इकबाल ने मुझे देखा तो मैंने उसे स्माइल दे दी. और उसकी आँखों में अपनी आँखे चिपका सी दी. वो पहले तो नजरें चुराने की फिराक में था. लेकिन फिर जब मैंने टॉप को और हिलाया तो वो वही देखता रहा. फिर लुंगी के ऊपर उसने हाथ डाला और लंड को थोडा पकड के पॉकेट बिलियर्ड खेल के बोला, हाँ बड़ी गर्मी है आज तो सुबह से ही.
मैंने गन्ने का ज्यूस खत्म कर लिया और वो बोला, और दूँ?

मैंने कहा, छुट्टे पैसे नहीं है मेरे पास?
वो बोला आप से किसने पैसे मांगे भाभी?
मैंने कहा, घर पर है छुट्टे पैसे, आओगे तो दे दूंगी.
और ये कह के मैने लुंगी के ऊपर देखा जहाँ पर उसका लंड था. वो मेरी बात का मलतब समझता था. वो बोला भैया नहीं है क्या आज?
मैंने कहा, भैया काम से और बेटा खेलने गया है.
और उसने लुंगी में लंड को फड़का दिया और बोला, चलो फिर छुट्टे पैसे दे ही दो मेरे को आप.
और वो बोला, मुझे भी कुछ काम से जाना है इसलिए बंद ही कर रहा था. उसने मशीन के आगे लोक किया और गल्ले से सब पैसे ले के अपनी जेब में डाल लिए. मैंने दूसरा ग्लास भी ख़त्म किया और उसको बोला, मैं जा के दरवाजा खोलती हूँ फिर आओ आप. हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट कॉम  मैंने ये कह के आगे चली और तिरछी नजर से देखा तो वो मेरे पिछवाड़े को ही देख रहा था. मैंने भी गांड को एक्स्ट्रा झटके दे दिए उसके लंड को और टाईट करने के लिए.
इकबाल भी मेरी गांड को देख के अपने मुहं से लाळ टपकाने लगा था. और वो मेरे पीछे कुछ देर के बाद आया जब तक मैं दरवाजा खोल चुकी थी, साला होशियार भोसड़ी का!
मैंने दरवाजे को पहले बंद नहीं किया एकदम से, शायद कोई देख रहा हो इस डर से. इकबाल अंदर आ गया था और उसे देख के मेरा दिल जोर जोर से धडक रहा था. पता नहीं आज मुझे क्या हुआ था! मैंने पहले कभी ऐसी हिम्मत और जुर्रत नहीं की थी पराये लंड को लेने के लिए. इकबाल को एक कौने में खड़ा कर के मैंने विंडो से बहार देखा. रोड पर बस एक कुत्ता था जो छाँव की तलाश में था और इधर मेरी चूत को लंड की आग की जरूरत थी. इकबाल मेरे पीछे आ गया और साले ने अपनी लुंगी को ऊपर कर के अपने लंड को मेरे कुल्हें को टच करवा दिया. बाप रे साले के लौड़े में क्या आग थी! मैं तो ऊपर से निचे तक पानी पानी हो गई थी उसके लंड का स्पर्श पा के.
मैंने विंडो को बंद कर के उसकी तरफ देखा और कहा, क्या कर रहे हो?
वो बोला, साली छिनाल जो करवाने के लिए ले के आई है वही तो कर रहा हूँ!
मैंने लुंगी हटा के उसके लंड को देखा तो मेरी आँखे खुली की खुली रह गई, वो किसी सांडे के जैसा लंड था जिसका मुहं एकदम फुला हुआ था. और नीछे के अंडे लंड के मुकाबले एकदम छोटे लग रहे थे. वो लंड पूरा के पूरा तना हुआ था. मैंने उसे अपने हाथ में पकड़ा और उसे हिलाने लगे. इकबाल के हाथ मेरे चुचियों पर थे और वो उन्हें एकदम कस कस के मसल रहा था जैसे उन्हें बॉडी से नोंच लेनी हो. फिर वो मेरे पेट के ऊपर हाथ रख के मेरी नाभि के बटन से खेलने लगा. मैं सच कहूँ तो मेरा कोई इरादा नहीं था रोमांस का इकबाल के साथ. मेरे को तो बस अपनी खुजलीवाली चूत को शांत करवानी थी और मौका देख के मैं उसे यही काम के लिए अपने साथ ले के आई थी. लेकिन वो शायद प्यार का भूखा था इसलिए कभी मेरे बूब्स को टॉप के ऊपर के खुले हुए हिस्से से तो कभी टॉप को ऊपर कर के मेरे पेट को चाट रहा था.
मुझे दिमाग में आइडिया आया की क्यों ना इस से अपनी चूत चटवा लूँ. मैंने पोर्न में बहुत बार ये सिन देखा था. लेकिन ना ही विनोद ना ही मेरा पति मुहं मारता था मेरी वजाइना पर. मैंने इकबाल को साइड में किया और उसके सामने न्यूड हो गई. और फिर अपनी टाँगे फैला के उसे नखरे से इशारा कर दिया. वो इशारा मैंने होंठो पर ऊँगली रख के फिर उस ऊँगली को चूत पर दबा के किया था. इकबाल समझ गया की उसे क्या करने को कहा गया था. वो सीधे निचे बैठ गया और उसने अपने कंधो के ऊपर मेरी दोनों टांगो को रख दिया. और मेरी चूत को कुत्ते के जैसे खाने लगा. वो अपनी लम्बी जबान से मेरी चूत के दाने को तो कभी चूत की फांको को लपलप कर रहा था. उसके एक एक टच से मेरे तन बदन में अलग ही जवाला भड़क रही थी. मैंने उसके घुंघराले बाल पकडे और उसे अपनी चूत पर दबा दिया. वो इसके लिए रेडी ही था. मौका देख के उसने अपनी जबान को मेरी चूत में घुसा दी और चाटने लगा. वो पल मेरे लिए किसी क़यामत से कम नहीं था. मैं इश्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह कर उठी और एक मिनिट में तो उसने मेरी चूत का पानी छुडवा दिया!
इकबाल ने अब खड़े हो के मेरी टांगो को उपर ही रहने दी. और फिर अपने लंड को मेरी चूत के पास ले आया. लंड को चूत के मुख पर रख के एक ही झटके में उसने उसे अंदर करना चाहा. लेकिन उसका लंड काफी बड़ा था इसलिए मेरे मुहं से एक जोर की आह निकल गई. गरम गरम लंड मेरी चूत को चमड़ी को छिल रहा था. लेकिन कसम से जो मजा था वो आज से पहले कभी नहीं आया था. इकबाल ने मेरे बूब्स को मुहं में ले लिया मेरे बदन के ऊपर झुक के. मेरी टाँगे अब बेड पर आ गई थी. उसने अब और एक झटके में पुरे लंड को अंदर कर दिया. और वो एकदम स्पीड बढ़ा के मेरी चूत की चुदाई करने लगा. वाह क्या धक्के दे रहा था ये गंवार!
उसका लंड भी लोहा था एकदम लोहा, जो गरम भी था और सख्त भी. मैं दोनों हाथ से उसकी गांड को दबा रही थी ताकि मैं लंड को और अंदर तक ले के उसे भोग सकूँ. इकबाल ने अब अपने गंदे तम्बाकू वाले दांत दिखाते हुए मुझे किस करना चाहा. लेकिन मैंने उसे धक्का दे के कहा, जो करने आये हो वो कर लो चुपचाप से. मेरे को होंठो पर और गालो पर मत चूमना. को दांत चिभा के किस कर रहा था. शायद मैंने उसका अपमान कर दिया था उसकी सजा मेरे को दे रहा था. लेकिन वो सजा की भी अपनी अलग ही मजा थी जैसे!
इकबाल ने मेरे को 10 मिनिट तक हिला हिला के चोदा और साले का लंड पानी ही नहीं छोड़ रहा था. गांड हिला हिला के मैं भी थक सी गई थी. मैंने उसे कहा तो वो बोला, आप कुतिया बन जाओ उसमे मेरा पानी जल्दी निकलता है भाभी.
मैं डौगी पोज़ में आ गई उसके सामने. और फिर उसने अपने लंड को पीछे से मेरी चूत में पेला. उसका लंड जा के मेरी बच्चेदानी को टकरा रहा था. और इस वजह से मेरे को और भी उत्तेजना मिल रही थी. और इस पोज में उसने मेरे को पांच मिनिट और ठोका. और उसके बाद उसके लंड का गाढ़ा गाढ़ा पानी मेरी चूत में जा मिला. मैं शांत हुई चूत की खुजली दूर होने से. मैंने उसे कहा जल्दी से कपडे पहनो और भागो यहाँ से.
वो चला गया. मुझे काफी बुरा लगा ऐसे किसी गंवार गन्ने के ज्यूसवाले से चुदवा के. लेकिन चूत की खुजली ने ही सब करवाया था. इकबाल आज भी मेरे को चोदने को बेताब लगता है. लेकिन मैं उसके बॉस कभी उसके ठेले के पास गई ही नहीं!!!
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#2
Part -2



तीन लोगों से चुदी आफरीन शेख

 

हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम आफरीन शेख है, मेरी उम्र 26 है और मेरी निगाह तीन महीने पहले हुई है में रहने वाली केरल की हूँ, लेकिन में अभी चेन्नई में रहती हूँ. मेरे अब्बू एयरफोर्स से रिटाइर्ड थे और मुझे हिन्दी अच्छी तरह से नहीं आती है.

दोस्तों में आज आप सभी को अपनी एक सच्ची कहानी सुनाने जा रही हूँ जो मेरे साथ हुई एक घटना है, मुझे हमेशा से ही सेक्स करने का बहुत शौक था, लेकिन कॉलेज तक मुझे कभी भी सेक्स करने का मौका नहीं मिला, लेकिन कॉलेज में मेरा एक बहुत अच्छा दोस्त बना उसका नाम सतीश है और सतीश ने ही मेरी पहली बार चुदाई की थी और आज तक वो ही मुझे लगातार चोद रहा है और अब मेरी शादी होने के बाद भी उसने मुझे बहुत बार चोदा और इतना ही नहीं उसने मुझे कई बार और भी लोगों से भी चुदवाया.

दोस्तों कॉलेज के बाद से में एक कॉल सेंटर में नौकरी करने लगी (कॉल सेंट्रल मे साड़ी हि लागु था तो मुझको वो पहनना आता था अच्छी तरीके से मै पर घर पर सूट और सलवार हि पहनती थी) और सतीश अपना फेमेली का व्यपार देखने लगा, वो मुझे कई बार शहर से बाहर जैसे ऊटी, गोआ जैसी जगह पर ले जाता था, लेकिन वो भी एक शादीशुदा लड़की की तरह ड्रेस पहनाकर जिससे कोई भी हम पर शक ना करे. सतीश ने मुझे कई बार बहुत सारे अजनबियों से चुदवाया जैसे होटल के रूम सर्विस बॉय, ड्राइवर, टूरिष्ट गाईड और उसने मुझे अपनी रंडी बनाकर रखा हुआ था.


दोस्तों पहले मेरे पास एक भी सेक्सी ड्रेस नहीं थी तो एक दिन सतीश में मुझसे कहा कि तुम्हे एकदम सेक्सी दिखना है और उसने मुझे तैयार होने को कहा, उसने मुझसे साड़ी पहनने को कहा और बोला कि में पेंटी और पेटीकोट नहीं पहनू और मेरी साड़ी कमर के नीची बँधे. फिर वो मुझे एक ब्रॅंडेड ड्रेस की शॉप पर ले गया. वहां पर दो लोग थे, वो लोग मुझे एक रूम में लेकर गये और फिर सतीश ने उनसे कहा कि 5 एकदम सेक्सी और बिल्कुल मस्त दिखने वाले ब्लाउज खरीदने है, लेकिन ब्लाउज के पीछे का पूरा हिस्सा खुला होना चाहिए सिर्फ़ बदन पर अटका हुआ होना चाहिए. फिर एक आदमी ने मेरे पूरे जिस्म का नाप लेना शुरू किया और फिर उसने मुझसे मेरी साड़ी का पल्लू हटाने को कहा ताकि वो अच्छी तरह से नाप ले सके. तो मैंने सतीश की तरफ देखा और उसने कहा कि हाँ हटा दो. तो उस आदमी ने सतीश से पूछा कि आगे की तरफ हिस्सा कैसी डिजाईन का चाहिए? तो सतीश ने उससे कहा कि मेरे आधे आधे बूब्स उस ब्लाउज में से बाहर की तरफ दिखने चाहिए वो बहुत ही गहरे गले का होना चाहिए.

तो वो दोनों उसकी बात को सुनकर एक दूसरे की तरफ देखकर स्माइल करने लगे और फिर उनमे से एक ने पूछा कि आपको कितना गहरा गला चाहिए? तो सतीश ने कहा कि उसकी ब्रा की गहराई के बराबर का साइज़ होना चाहिए. तो उसने कहा कि फिर तो हमे ब्रा का नाप लेना पड़ेगा, तब सतीश आगे की तरफ आया और वो मेरे ब्लाउज को खोलने लगा और जब मैंने उसे मना किया तो वो उनके सामने ही मेरे बूब्स को दबाने लगा, लेकिन मुझे अच्छा लगा.

उसने कहा कि सेक्सी ड्रेस के लिए तो ऐसा भी करना पड़ेगा और अब वो मेरे ब्लाउज को खोलने लगा और फिर ब्लाउज को पूरा उतार दिया फिर उसने ब्रा के ऊपर से अपना एक हाथ अंदर डालकर कहा कि इतना गहरा गला चाहिए. तो वो आदमी मेरे पास आया और उसने मेरे बूब्स को दो बार दबाया जैसे वो किसी चीज को सेट कर रहा हो और इतने में वो दूसरा आदमी आया और मेरे पीछे खड़ा हो गया और उसने मेरी कमर को पकड़ लिया और बोला कि बताओ कितना टाईट चाहिए? और वो मेरा नाप ले रहा था, लेकिन वो बार बार मेरे बूब्स को रगड़ रहा था और मेरे पीछे जो खड़ा था वो मेरे कूल्हों से चिपक रहा था और मुझे उसका खड़ा हुआ लंड महसूस हो रहा था फिर आगे वाले आदमी से सतीश ने कहा कि क्या और थोड़ा गहरा गला दे सकते है क्या?

सतीश ने कहा कि हाँ क्यों नहीं? तो वो बोला कि, लेकिन अब इस ब्रा को बाहर निकालना पड़ेगा और फिर सतीश ने मुझे देखकर स्माइल दी और उस आदमी से कहा कि निकाल दो और जैसे ही सतीश के मुहं से यह शब्द सुना पीछे वाले आदमी ने मेरी ब्रा का हुक खोल दिया और आगे वाले ने उसे खींचकर उतार दिया और वो सब कुछ काम इतना जल्दी हुआ कि में उसके बारे में सोच भी नहीं पाई. तो मैंने अपने दोनों हाथों से अपने एकदम से बाहर आकर झूलते, लटकते हुए बड़े बड़े बूब्स को ढक लिया.

दोस्तों मेरे दिल की पूछे तो मुझे भी अब बहुत मज़ा आने लगा था और अब मेरी चूत भी पूरी तरह से गीली हो गयी थी. तो सतीश ने कहा कि लगता है कि यह शरमा रही है? अब हमे भी अपने अपने कपड़े उतारने चाहिए तभी ठीक रहेगा और फिर उन सभी ने अपने अपने कपड़े उतार दिया और बिल्कुल नंगे होकर मेरे सामने खड़े हो गये. तो सतीश थोड़ा आगे की तरफ आया और उसने मेरे एक हाथ को पकड़कर अपने लंड पर रखा और अब में धीरे धीरे उसका लंड हिलाने लगी.

यह सब कुछ देखकर वो दोनों भी आगे की तरफ आ गये और मेरे बूब्स को और गांड को दबाने लगे और उन्होंने मेरी साड़ी को पूरी तरह से उतार दिया और अब में उनके सामने बिल्कुल नंगी खड़ी हुई थी. उनका लंड मेरे साइड में छू रहा था और उन सबका लंड कम से कम 7 इंच का था, वो लोग मुझे किस करने लगे और मेरे बूब्स को दबाने लगे. तो सतीश ने उन दोनों से कहा कि यह रंडी आज तुम्हारी है तुम दोनों आज इसे जी भरकर चोदो. दोस्तों क्योंकि मुझे सेक्स करते समय गंदी बातें और गाली देना बहुत पसंद है और सतीश यह जानता है इसलिए वो चुदाई करते समय मुझसे गाली देकर ही बात करता है.

फिर उसने मुझे अपने घुटनो पर बैठाया और बोला कि चूस मेरी रांड चूस मेरे लंड को और उसने अपना लंड मेरे मुहं में डाल दिया और वो मेरे मुहं को ज़ोर ज़ोर से धक्के देकर चोदने लगा और एक आदमी नीचे लेटकर मेरी चूत को चाटने लगा, जिसकी वजह से मेरा बहुत बुरा हाल हो रहा था, लेकिन मज़ा भी बहुत आ रहा था.

उसके बाद दूसरे आदमी ने मेरे बाल पकड़कर खींचकर मुझसे कहा कि साली रांड में क्या तेरी चुदाई के दर्शन के लिए यहाँ पर खड़ा हुआ हूँ, यह मेरा लंड कौन चूसेगा और यह बात कहकर उसने मुझे अपनी तरफ खींचा और अपना पूरा लंड मेरे मुहं में जबरदस्ती घुसा दिया और थोड़ी देर तक ऐसे ही रखा और फिर ज़ोर ज़ोर से धक्के देकर मेरे मुहं को चोदने लगा. दोस्तों में एक बार पहले ही अपनी चूत का पानी छोड़ चुकी थी और अब उन्होंने मुझे खींचकर एक सोफे पर लेटा दिया और फिर जो आदमी मेरी चूत को चाट रहा था वो आदमी मेरे ऊपर आकर मेरे बूब्स को चूसने और काटने लगा और उसका लंड मेरी चूत को रगड़ रहा था.

अब सतीश आया और उसने मेरे बाल को खींचकर मेरी गर्दन उठाकर मेरे मुहं में अपने लंड को डाल दिया और ज़ोर ज़ोर से ताबड़तोड़ धक्के देकर चोदने लगा जिसकी वजह से अब मेरी सांसे रुकने लगी, मेरी आखों से आंसू बाहर आने लगे थे, लेकिन उनको तो अपनी हवस को मिटाने की पड़ी थी. फिर उस आदमी ने मेरे दोनों पैरों को मेरी छाती तक घुमाया और अपने लंड को मेरी चूत के मुहं पर ज़ोर से रगड़ने लगा. दोस्तों उसके ऐसा करने से मेरा बहुत बुरा हाल हो रहा था.

में अपनी चुदाई के लिए तड़पने लगी थी और मेरी चूत अब लंड के लिए तरस रही थी. मैंने एक ही झटके से सतीश के लंड को अपने मुहं से बाहर निकाला और उस आदमी से कहा कि प्लीज जल्दी से अंदर डालो मुझसे अब और कंट्रोल नहीं हो रहा और फिर वो अपना पूरा वजन मेरे ऊपर डालकर लेट गया और उसने मेरे बाल को ज़ोर से खींचा, में चीखने वाली थी कि तभी उसने मुझे किस किया और ज़ोर से मेरे होंठो को चूसने लगा और मेरे बालों को और भी ज़ोर से खींचने लगा और उसने कहा कि साली रांड तुझे इतनी जल्दी कैसे? और पहले बोल तू रंडी है, कुतिया है और क्या तू बीच बाज़ार में नंगी चुदवाएगी मुझसे आफरीन?

मुझसे और दर्द सहा नहीं जा रहा था और इसलिए मैंने उससे कहा कि हाँ में रंडी हूँ मुझे जहाँ भी लंड दिखता है में वहीं पर नंगी होकर चुदवाती हूँ मुझे बस लंड चाहिए, अब चोद मुझे साले और फिर उसने एक ही झटके में अपना लंड मेरी चूत के अंदर डाल दिया और फिर जैसे ही मेरा मुहं चिल्लाने के लिए खुला तो सतीश ने अपना लंड मेरे मुहं में डाल दिया और मेरे मुहं को चोदने लगा. फिर उस बंदे का लंड अब झड़ने वाला था इसलिए उसने मुझसे कहा कि मेरा निकलने वाला है, तभी सतीश ने मेरे मुहं से अपने लंड को बाहर निकाल दिया और उस आदमी ने आकर अपना लंड पूरा मेरे मुहं में डाल दिया और धीरे धीरे झटके देकर अपना वीर्य निकालने लगा और मुझे उसका पूरा माल पीना पड़ा.

तो सतीश अब मेरे पैरों के बीच में गया और उसने मुझे डॉगी स्टाईल में पलट दिया और एक ही झटके में अपना पूरा लंड मेरी चूत में डाल दिया. फिर उसने मेरे बाल पकड़कर पीछे की तरफ खींचा और मुझे चोदने लगा. तभी वो दूसरा आदमी आया और उसने अपना लंड मेरे मुहं में डाल दिया और वो मेरे मुहं को चोदने लगा. पीछे से सतीश भी मुझे बुरी तरह से चोद रहा था और आगे से वो आदमी मेरे मुहं को चोद रहा था, तब मैंने दूसरी बार अपना माल छोड़ दिया और ऐसा करीब बीस मिनट तक चलता रहा.

तभी सतीश ने अपनी स्पीड को बड़ा दिया तो में समझ गयी कि वो भी झड़ने वाला है तभी सतीश ने कहा कि मेरा भी अब निकल रहा है और वो सामने वाला आदमी हट गया और सतीश ने अपना लंड मेरे मुहं में डाल दिया और बोला कि चूस साली कुतिया रंडी कहीं की, पी मेरा माल और उसने अपना पूरा माल मेरे मुहं में डाल दिया और इस तरह उन तीनों ने मुझे शाम के 6 बजे तक लगातार एक एक करके चोदा और कई बार मेरी गांड भी मारी और सतीश ने उसकी एक वीडियो भी बनाई है. तो हम फिर उठे अपने अपने कपड़े पहने और बाहर आ गए. उसके बाद हम दोनों अपने अपने घर पर आ गए. दोस्तों यह थी मेरी चुदाई की कहानी, जिसमे सतीश में मेरी शादी होने के बाद भी उसने मुझे बहुत बार चोदा और दूसरों से भी चुदवाया. में अब उसकी रंडी की तरह उसके कहने पर चलती हूँ और अपनी चुदाई के मज़े लेती हूँ.
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#3
Part -3



जंगल के बीच में मेरी चूत में लंड :- सोफिया कुरैशी



बीच जंगल में नदी के किनारे मेरे एक बॉस ने मेरी चूत में लंड घुसाया और दूसरे ने पीछे से मेरी गांड में…
आदाब दोस्तो, मेरा नाम सोफिया कुरैशी है, मैं उत्तर प्रदेश के एक बड़े औद्योगिक शहर से हूँ। इस कहानी में दिए गए सभी नाम और पते काल्पनिक हैं।

मैं तहसील दफ्तर में टाईपिस्ट हूँ। दोस्तो यह हकीकत एक साल पहले की है.. जब मैं दफ्तर में नई थी, मेरे साथ तहसीलदार दीपक और चंदन थे। हम तीनों एक ही दफ्तर में काम करते थे।
ये दोनों अफसर अच्छे थे.. जब मैं नई थी.. तो सभी मुझे काफी सहयोग करते थे। अब मैं काफी कुछ सीख चुकी थी।

एक दिन दफ्तर में फोन आया कि कुछ लोग नदी से बिना इजाजत के रेत ले जा रहे थे।
यह सुनकर दीपक और चंदन जाने लगे।

चंदन ने मुझसे कहा- सोफी तुम भी चलोगी.. वैसे भी आज दफ्तर में कुछ काम नहीं है.. यदि तुम चाहो तो घर भी जा सकती हो।
मैंने कहा- ठीक है सर.. मैं आपके साथ चलती हूँ।

हम तीनों और ड्राइवर निकल लिए.. जब हम नदी के पास पहुँचे तो कुछ लोग रेत भर कर निकल रहे थे। हमने उनका पीछा किया। गाड़ी थोड़ी आगे तक गई मगर बीच जंगल में ही गाड़ी का टायर फट गया और गाड़ी में स्टेपनी भी नहीं थी। ड्राइवर से चंदन ने कहा कि आप टायर लेकर जल्दी आ जाओ।

शाम का वक्त था और ठंडी के मौसम की वजह से थोड़ी ही देर में अंधेरा होने वाला था।

दीपक सर ने मुझसे पूछा- मैडम डर तो नहीं लग रहा?
मैंने कहा- नहीं सर जब आप दोनों मेरे साथ हैं तो किस बात का डर?

दीपक और चंदन एक-दूसरे को इशारा कर रहे थे, पर कुछ कह नहीं रहे थे।
फिर उन्होंने मुझसे पूछा- मैडम कुछ सॉफ्ट ड्रिंक या और कुछ चलेगा?

मैंने मना कर दिया और बताया कि मैं सिर्फ 

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घर में ही लेती हूँ.. क्योंकि मेरे अब्बू आर्मी में थे तो दादा के लिए शराब ले आते थे। हम तीन बहनें जायरा शबाना और मैं चोरी-चोरी शराब पीते थे।

चंदन गाड़ी से शराब, पेप्सी और कुछ खाने की चीजें ले आया। अब अंधेरा हो चुका था, दीपक ने गाड़ी के लाइट चालू कर दी और शराब का प्रोग्राम भी शुरू हो गया। चंदन ने मुझे एक गिलास में भर कर दे दी। अब मैं मना नहीं कर सकती थी। मुझे गिलास से शराब की गंध आ रही थी.. चूंकि मुझे आदत थी.. तो मैंने गिलास खाली कर दिया।

चंदन ने मुझे इसी तरह से पेप्सी का और एक गिलास भर दिया। जैसे मुझको पता न था कि इसमें शराब है.. मैंने ऐसा जताते हुए दूसरा गिलास भी खाली कर दिया था, मुझे नशा हो गया था।

मैंने चन्दन की तरफ सवालिया निगाह से देखा तो चंदन ने मुझे बताया कि पेप्सी में उसने शराब मिला दी थी।
मैं मुस्कुरा दी.. लेकिन मैं काफी नशे में हो गई थी। शायद चंदन ने शराब की मात्रा अधिक कर दी थी।

मैं कुछ बोल न सकी। उस वक्त मैं जीन्स और टॉप पहने हुई थी। चंदन मुझे घूर रहा था और उतने में दीपक ने मुझे पीछे से पकड़ लिया और मेरी चुचियाँ दबाने लगा।
मेरी 34-32-38 की मारू फिगर से तो आप लोग अंदाज लगा ही सकते हैं कि किसी का लंड किस तरह खड़ा हो सकता है… ये सब तो आपको पता ही होगा।

चुस्त जीन्स में मेरी गांड और कूल्हे काफी मोटे और बड़े नजर आते थे।

तभी चंदन ने आगे से जीन्स की चैन खोल दी और मेरी चुत में उंगली डाल दी। उम्म्ह… अहह… हय… याह… ये सब इतनी जल्दी हुआ कि मैं समझ ही नहीं पाई। इस वक्त तो मैं वैसे ही मानो अधमरी सी हो गई थी। मुझे इतना नशा हो गया था कि कोई विरोध की स्थिति ही न थी।

लेकिन मुझे अब सब समझ आ रहा था। दीपक मेरी चूचियां इतनी जोर से दबा रहा था कि मुझे काफी दर्द हो रहा था। चंदन ने मेरी जीन्स निकाल कर फेंक दी और मेरी आँखें गाड़ी की लाइट के सामने लगा दीं। इससे मुझे कुछ भी नजर नहीं आ रहा.. लाइट मेरे बिल्कुल सामने हो गई थी।

कुछ ही पलों में उन दोनों ने मुझे पूरी नंगी कर दिया। मुझे जमीन पर लिटा दिया और मेरी टांगों को फैला दिया। मुझे मजा आ रहा था पर मैं कुछ कर नहीं पा रही थी।
तभी मेरी चुत में एक लंड ऐसे घुसा मानो बंदूक से गोली मार दी गई हो। चूत में लंड घुसते ही मुझे काफी दर्द होने लगा था.. क्योंकि मुझे बिना चुदे बहुत दिन हो चुके थे।

अब दीपक ने मेरी चुत में अपना लंड डाल रखा था और चंदन ने जबरदस्ती अपना लंड मेरे मुँह में ठूंस दिया। चंदन का लंड इतना बड़ा था कि मेरे गले तक जा रहा था.. मुझसे सांस भी ठीक से नहीं ली जा रही थी। उधर नीचे जमीन पर पड़े कंकड़ आदि मेरी पीठ पर चुभ रहे थे। मेरे बड़े कूल्हे भी जमीन में रगड़ रहे थे।

दीपक के बाद अब चंदन ने मेरी चुत में अपना लंड ठूंस दिया था और दीपक ने मुँह में पेल दिया। वे दोनों मुझे खूब रगड़ रहे थे.. मानो मुझसे कोई पुराना बदला ले रहे थे। दीपक ने मेरे मुँह में ही पानी छोड़ दिया और वह बाजू में बैठ गया था।

अब चंदन ने मुझे औंधा लिटा दिया था और मेरी गांड में शराब डालने लगा। साथ ही वो अपनी एक उंगली भी मेरी गांड में डाले जा रहा था।

फिर चंदन ने जबरदस्ती अपना मोटा लंड मेरी गांड में डाल दिया था। मैं पहले भी गांड मरवा चुकी हूँ तो जल्दी ही मेरी गांड का मुँह बड़ा हो गया था और कुछ देर के दर्द के बाद चंदन का लौड़ा मेरी गांड में आराम से अन्दर-बाहर हो रहा था।

कुछ देर गांड मारने के बाद चन्दन ने गाड़ी के सहारे खड़ा करके मुझे कुतिया जैसा करके मेरे मेरी गांड में अपना मूसल डालना चालू कर दिया था।

कुछ देर की धकापेल के बाद चंदन ने मेरी गांड में ही पानी छोड़ दिया था। वो मुझसे अलग हो गया था और मैं बिना कपड़ों के एक बड़े पत्थर पर जा कर बैठ गई थी। दीपक मेरे लिए फिर से शराब ले कर आया था.. मैंने बिना कुछ सोचे सीधे शराब की बोतल मुँह में लगा ली और काफी खाली भी कर दी। कुछ ही पलों में मैं फिर से मस्त हो गई।

अब दीपक ने मुझे औंधा लिटा दिया और उसने भी मेरी गांड में लंड डाल दिया। नशे के कारण मुझे कुछ भी असर नहीं हो रहा था.. तभी चंदन ने इशारा किया तो दीपक ने मुझे गोद में लेकर के मेरे पैर खोल दिए और अगले ही पल आगे से चन्दन ने मेरी चूत में अपना लंड डाल दिया।

अब मैं सैंडविच बनी हुई उन दोनों के साथ चुदवा रही थी। एक का लंड आगे चुत में था और दूसरा पीछे से मेरी गांड बजा रहा था। मुझे इतना नशा था कि मैं सिर्फ अम्मी और अब्बू के नाम ले रही थी। थोड़ी देर बाद दोनों ने मेरे मुँह में एक साथ लंड घुसेड़ दिए और अपने पानी के फव्वारे छोड़ दिए।

मैं वहीं पर नंगी लेटी रही और ये दोनों नदी में हाथ-मुँह धोने चले गए थे। कुछ समय बाद और एक बार फिर किसी ने मुझे पीछे से पकड़ कर मेरी चुत में लंड डाल दिया, मैंने मुड़ कर देखा तो वो गाड़ी का ड्राइवर सलीम था। उस मादरचोद ने दूर से मोबाइल में वीडियो बना लिया था। मैंने उसका विरोध किया तो उसने मुझे वीडियो दिखा कर जबरदस्ती लंड मेरी चुत में डाल दिया था और मैं बिना कुछ कहे उससे चुदती रही। वो जल्दी झड़ गया था।

बाद में मैंने उसके मोबाइल से वीडियो मेरे मोबाइल में ले लिया था और उसके फोन से डिलीट कर दिया था क्योंकि इस वीडियो से मुझे हर बार चंदन और दीपक से अपना हिस्सा मिलना तय करना था।

तो दोस्तो, इस तरह आपकी सोफिया चुदी थी.
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#4
Part -4



यास्मिन ने बूढ़े केलेवाले का केला लिया


दोस्तों मेरा नाम जावेद अब्बास हे और मैंलखनऊ से हूँ. आज मैं आप को अपनी बहन यास्मिन और केले के ठेलेवाली की कहानी बताने के लिए आया हूँ. मेरी बहन यास्मिन मेरिड हे लेकिन उसका पति किसी और के प्यार में पड़ा हुआ हे. इसलिए मेरी ये बहन काफी समय से हमारे घर पर यानि की अपने मइके में ही रहती हे.

कुछ महीनो तक सब ठीक चल रहा था. लेकिन मेरे हरामी जीजा ने अभी तक बहन का न कोई कॉल कियाऔर ना ही वो उसे मिलने के लिए आया. मैंने अक्सर अपनी बहन को कमरे में छिप के रोते हुए देखा था. अम्मी अब्बा ने उसका तलाक करवा के किसी और से शादी करने का कहा. पर मेरी बहन ने कहा अब्बा वो भी ऐसा निकला तो? तो अम्मी ने उसे कहा, इस डर से हम तुझे अपने घर कितने दिन तक रखेंगे बेटा?

पर वो नहीं मानी. महीने भर का समय और बिता. जीजा को तलाक के लिए वकील साहब के थ्रू नोटिस भिजवा दिया गया था.

उस दिन अम्मी अब्बा मेरे चाचा के बेटे के लड़के की मुसलमानी में बनारस गए थे. यास्मिना को भी जाना था पर वो बीमार हूँ बोल के नहीं गई. मेरे कोलेज के लिए मैं भी नहीं गया.

अम्मी अब्बा के जाने के दुसरे दिन मैं कमरे में था. पेट में बहुत दर्द था इसलिए कॉलेज नहीं गया. यास्मिन आप को लगा की मैं चला गया. वो तब नहा रही थी. नहाने के बाद वो बहार आई. और फिर अपने बदन को पौंच के किचन में उसने चाय पकाई. वो चाय पी रही थी तभी बहार फ्रूट बेचनेवाले बूढ़े दया शंकर की आवाज आई. वो बूढा पिछले काफी सालों से हमारे मोहल्ले में फ्रूट बेचने आता था इसलिए सब उसे जानते थे. वो केला ले लो, केला ले लो, अमरुद खा लो की आवाज लगा रहा था. यास्मिन दीदी ने उसे बुलाया, चाचा इधर आओ. मैं कमरे में ही था और उसकी आवाज मुझे सुनाई दी.

बूढा घर के दरवाजे के पास अपनी टोकरी रख के बैठ गया.

यास्मिन आपा ने कहा, केले कैसे दिए?

शंकर अंकल: अब आप से क्या टोल मोल करना बेटा, 20 रूपये दर्जन हे, आप के लिए १५१ लगा दूंगा.

यास्मिन आपा ने टोकरी में पड़े हुए केलों को दबा के देखा और बोली: ये तो सब ढीले के ढीले हे, मुझे कडक चाहिए थे.

बूढा: पूरा लखनऊ ढीले केले मांगता हे कहते हे की कडक केले कच्चे होते हे अन्दर से.. और तुम्हें कच्चे चाहिए?

यास्मिन दीदी उसे देख के बोली: मैं कडक केले खाती हूँ.

और फिर वो जानबूझ के बूढ़े के सामने ऐसी झुकी की उसके डीप क्लीवेज को बूढ़े ने देख लिया. उसका लंड जरुर फडफडा गया होगा मेरी बहन के क्लीवेज को देख के. यास्मिन दीदी ने दो तिन केले और दबाये और बोली, बोलो कडक केला हे आप के पास?

बूढ़े ने अपनी धोती के अन्दर लंड को खुजाया और बोली, तुम्हे कैसा कच्छा केला चाहिए तो तो बताओ, पुराना होगा तो चलेगा?

यास्मिना आपा: कडक होना चाहिए कितना भी पुराना हो.

बूढ़े ने कहा, कडक तो बड़ा हे और खाने में भी एकदम मीठा हे.

मेरी बहन ने कहा, दिखाओ फिर वो वाला केला!

बूढ़े ने आँख मार के कहा, वो केला थोडा महंगा हे और एक ही हे!

ये कह के उसने फिर से धोती के अन्दर अपने लंड को हिलाया. बहन यास्मिन ने कहा, चलो अंदर ही आ जाओ अपनी टोकरी ले के.

बूढा बहन के पीछे आ गया. और जैसे ही यास्मिन ने दरवाजे को बंध किया बूढ़े ने अपनी धोती ऊपर उठा ली. उसके लंड के अंदर की अकडन एकदम आ गई थी. और रंग में वो लोडा एकदम काला था. यास्मिन जैसे ही पलटी वो लंड को देख के अपने मुहं के ऊपर हाथ रख के जैसे शर्मा ही गई!

बूढ़े ने कहा, जल्दी ले लो मेरा केला बिटिया!

यास्मिना आप सीधे अपने घुटनों के उपर आ बैठी. और उसने बूढ़े के लंड को जल्दी से अपने मुहं में भर के चुसना चालू कर दिया. वो साथ में लंड को अपने हाथ में पकड़ के उसे गोल गोल घुमाते हुए चुस्से लगा रही थी. शंकर एकदम आहत सा हो गया था मेरी बहन के इस सेक्सी अंदाज को देख के. वो यास्मिन आप के माथे को पकड के अपने लंड पर दबाने लगा. मेरी बहन ने कस कस के उसके लौड़े को चूसा.

5 मिनिट मस्त ब्लोव्जोब देने के बाद जब वो खड़ी हुई तो शंकर ने उसकी चुंचियां अपने हाथ में पकड के जोर जोर से दबाई. यास्मिन आप के मुहं से आह आह निकल गया. वो तडप रही थी कामुकता और अन्तर्वासना की आग में. उसने शंकर के लंड को पकड़ के उसकी मुठ मारनी चालू कर दी. साले बूढ़े केलेवाला का केला सच में एकदम मोटा और लम्बा था.

यास्मिन आपा: केला तो सच में मस्त हे तेरा बूढ़े!

शंकर: जब अन्दर डालूंग तो और भी अच्छा लगेगा मेरी रंडी!

फिर शंकर ने मेरी आपा को दिवार पकड़ के खड़ा कर दिया. उसकी सलवार का नाडा उसने खिंच दिया. बहन की सलवार निचे गिर गई. उसकी बड़ी गांड को बूढ़े ने अपने हाथ से सहलाई. फिर उसको थोडा झुका दिया. ऐसे की जैसे बहन आधी डौगी स्टाइल में थी. फिर पीछे से इस बूढ़े ने मस्त नुकीले लंड को मेरी बहन की बुर में डाल दिया. यास्मिन आपा आह कर गई और बूढ़े ने लंड को चूत में घिसना चालू कर दिया.

उसके लंड के बहन के बुर में घुसने से चप चप की आवाजे आ रही थी जिन्हें मैं आराम से सुन सकता था. यास्मिन आपा भी अपनी बड़ी गांड को मस्त हिला के लंड को भोगती गई.

बूढ़े ने फट फट चोद के पांच मिनिट में ही बहन की चूत में अपना पानी झाड दिया. फिर वो लंड को बहार निकाल के अपनी धोती से साफ़ करने लगा. उसने धोती की गाँठ लगाईं. बहन ने भी सलवार को उठा के नाडा बाँध दिया. यास्मिन आप ने दरवाजे को खोला और देखा की बहार कोई नहीं हे. फिर उसने बूढ़े को घर से भगा दिया.

जाते जाते शंकर ने उसे 4-5 केले दिए और बोला, ये लो ये केले भी खा लेना!

दोस्तों उसके बाद मेरी आपा दरवाजे को बंध कर के नहाने चली गई. चुदवाने के बाद फट से चूत धो लेने से प्रेग्नन्सी नहीं रहती हे!
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#5
Part- 5


दूरबीन से सेक्स देखा फिर पता चला की बहन

दोस्तों मेरा नाम जमील हैं और मैं हैदराबाद का रहनेवाला हूँ. मैं एक हॉट लड़का हूँ जिसके लंड की लम्बाई पुरे ८ इंच हैं. मुझे सेक्स करना और सेक्स की कहानियों को पढना बहुत पसंद हैं. सकसेक्स डॉट कॉम के उपर ही मैं पिछले काफी सालो से सेक्स की कहानियाँ पढ़ रहा हूँ. और फिर मैंने सोचा की क्यूँ न मैं भी अपना एक अनुभव इस साईट के ऊपर रखूं. वैसे यह चुदाई में मैं इन्वोल्व नहीं था. हमने तो सिर्फ देखी थी.

मेरे दो ख़ास दोस्त हैं अहसान और बबलू. बबलू के पापा हैदराबाद में ही एक २० मंजिला ईमारत में काम करते हैं. और कभी कभी हम तीनो दोस्त घरवालो से छिप के बियर पिने के लिए इस इमारत की छत पर जाते हैं.  बबलू के पापा के साथ काम करनेवाले वाचमेन अंकल हमें जानते हैं इसलिए हमें ऊपर जाने देते हैं. लेकिन उन्हें यह पता नहीं की हम बियर पिने आते हैं वहां पर.

बियर पार्टी में हुआ बवाल

एक दिन शाम को ४ बजे मुहे बबलू ने व्हाट्सएप्प किया की बिल्डिंग पर जायेंगे? मैंने यस रिप्लाय किया. शाम के करीब पौने ५ को हम सब मिले और बेग में बियर के २ तिन छिपा के हम बिल्डिंग की छत पर चढ़ गए. आज अहसान अपने साथ एक दूरबीन ले के आया था. उसे यह दूरबीन किसी ने गिफ्ट किया था और बिल्डिंग पर से दूर के नज़ारे देखने के लिए वो साथ में ले के आया था.

बबलू चखने के पेकेट खोल रहा था और अहसान ने दूरबीन के ग्लास के आगे से ढक्कन निकाले और वो इस ऊँची बिल्डिंग से दूर के नजारों को करीब से देखने लगा. तभी वो बोला, इसकी माँ का भोसड़ा, देखो तो बे ये छमिया क्या कर रही हैं!

मैं और बबलू उसकी तरफ देख के सोचने लगे की इसने कौन सी छमिया को देख लिया.

अहसान की आँखे दूरबीन में ही थी. मैं और बबलू उसके पास गए तो उसने दूरबीन हमें देने के लिए आगे किया और बोला वो सामने जो छत दिख रही हैं न उसके ऊपर पानी की टंकी हैं उसके साइड में एक लौंडी अपने यार के साथ किसिंग कर रही हैं.

यह सुनते ही मैंने और बबलू ने भी इस लौंडिया को देखने के लिए तालावेली दिखाई. शायद कोई प्रेमी पंछियों का जोड़ा सेक्स में मग्न था छत पर और उन्हें पता नहीं था की शहर में ऊँची इमारते बहुत हैं. मैंने पहले दूरबीन लिया और जब वो सिन देखा तो सोच में पड़ गया की कहीं यह मेरी बहन शाहीन तो नहीं हैं! कद काठी और कपडे से तो वही लग रही थी. लेकिन मैं कुछ नहीं बोला, हां मेरे गला सूख जरुर गया था. बबलू ने मेरे हाथ से दूरबीन खिंच लिया और बोला, साले खुदने निचे कर दिया और मुझे देता भी नहीं.

बबलू और अहसान को शायद शाहीन की पहचान  नहीं हुई थी लेकिन मेरे मन में अब ८५% यकीन था की वो मेरी बहन ही हैं जो अपने किसी यार के साथ उसके घर की छत पर सेक्स कर रही हैं. अब मैं जो उसे दूरबीन से देखता नहीं तो मेरे दोनों दोस्तों को शक हो जाता इसलिए मैंने नार्मल बिहेव करना ही ठीक समझा. अहसान के हाथ से मैंने दूरबीन खिंचा और बोला, देखने दे ना बे.

बबलू बोला, साला आज तिन दूरबीन की जरूरत थी बे.

मैंने जब वापस उस टंकी के पास का सिन देखा तो अब वहां सिन में थोडा बदलाव हुआ था. इस बन्दे ने अपना लंड निकाला था शायद, वैसे वो लोग काफी दूर थे हमसे इसलिए क्लियर देखना मुश्किल ही था. शाहीन निचे झुकी हुई थी और उसका माथा ऊपर निचे हो रहा था इसका मतलब वो लंड चूस रही थी अपने इस यार का. अब बबलू ने मेरे से दूरबीन छिना और वो मेरी बहन के सेक्स काण्ड को देखने लगा. मैंने देखा की अहसान का लोडा कडक हो गया था क्यूंकि उसके पेंट के उस हिस्से में तम्बू जैसा आकार बना हुआ था. वो बार बार अपनी उंगलियों से लंड को खुजा रहा था.

छत पर सेक्स करते देखा शाहीन को

फिर हम तीनो ने बारी बारी कर के शाहीन को सेक्स करते हुए देखा. मैंने अपने १/३ भाग में जो देखने को मिला उसका सारांश आप को कहूँ तो शाहीन ने अपने इस यार का लंड चूसा और फिर उसके बूब्स को उसके यार ने गोदी में बिठा केचुसे. वो दोनों कभी भी पुरे नंगे नहीं हुए जिस हिस्से की जरुरत पड़ती थी वहाँ का कपडा हटा के वो  निकाल लेते थे. लंड चुसाई और बूब्स सकिंग के बाद शाहीन अपने इस लवर के लंड पर बैठ गई. और उसने मेरी इस सेक्सी बहन को बूब्स पकड के चोदा. इन दोनों ने करीब २० मिनिट तक सेक्स किया जिसमे से कुछ ७-८ मिनिट का सिन मेरे हिस्से में देखने को आया.

फिर हम लोगो ने बियर पी ली और मैं आज रोज से जल्दी घर की तरफ निकला. बबलू ने तो मुझे कहा भी की साले इस लड़की की चुदाई देख के मुठ मारने का मन हुआ हैं तेरा ऐसा लग रहा हैं. साले दोस्तों को और शराब को अधूरे में छोड़ दिया अपने लौड़े के लिए.

अब मैं उसे कैसे कहूँ की वो जो सेक्स कर रही थी वो मेरी बहन ही थी और उसे देख के मेरा लंड कतई खड़ा नहीं हुआ था. मैं तो बस वो देखने के लिए जल्दी घर जा रहा था की चुदाई करवा के आने के बाद शाहीन में कुछ फर्क होता हैं या नहीं. लेकिन ऐसा कुछ नहीं था, वो घर आई तो जैसे ट्यूशन से ही आई हो वैसे अपने बसते को सोफे पर डाल के अम्मी को बोली, अम्मी जल्दी से चाय चढ़ा दो न प्लीज़.

मैं मन ही मन कह रहा था की जा साली रंडी नाहा के आ, सेक्स के कीटाणु अभी तेरी चूत से चिपके ही होंगे! बाद मे पता चला की मेरी बहन को बॉयफ्रेंड रोहित सिंह था वो लड़का ।
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#6
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कायर पति
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#7
पार्ट 5 
  
    अम्मी की चुदाई


इस चुदाई कहानी में मेरी अम्मी की गैर मर्दों के साथ चुदाई का नजारा है. ये सेक्स स्टोरी सच्ची है. मैंने मेरी अम्मी की चूत चुदाई मेरे फूफा और उनके बेटे से देखी.

दोस्तो, मेरा नाम इकरार खान है, मैं अब जवान हो गया हूँ. ये कहानी उस वक्त से शुरू होती है, जब मैं पढ़ता था.

इस चुदाई कहानी में मेरी अम्मी की गैर मर्दों के साथ चुदाई की कहानी का रस भरा हुआ है. ये सेक्स कहानी एक सच्ची घटना पर आधारित है.

मैं समझता था कि मेरी अम्मी एक पतिव्रता औरत हैं, उनकी उम्र अभी 41 साल की है. मगर उनकी फिगर देख कर कोई नहीं कह सकता था कि वो 30 साल से ज्यादा की नहीं हैं.

मेरे अब्बू एक कम्पनी में काम करते थे और उनकी आमदनी कोई बहुत ज्यादा नहीं थी. शाम को अक्सर देसी अब्बू दारू पीकर आते और अम्मी से पैसों को लेकर लड़ झगड़ कर खाना आदि खा कर सो जाते.

उस समय मेरी बुआ का लड़का, जिसका नाम शकील था. वो एक टैक्सी ड्राइवर था. हमारे शहर की एक कॉलोनी में उनका एक अच्छा मकान बन गया था. वो अपने अम्मी अब्बू के साथ रहता था. शकील अक्सर मेरे घर आया करता था क्योंकि वो इस शहर में आने से पहले से ही हमारे घर में रहता आया था.

उसके अब्बू यानि मेरे फूफा जी एक सरकारी कर्मचारी थे, परन्तु अब फूफा जी ने वीआरएस ले लिया था और वो रिटायर हो चुके थे. उन्होंने इसी शहर में अपना मकान बना लिया था. जिसमें वो शकील और अपनी बीमार बीवी के साथ रहते थे.

फूफा जी भी हमारे यहां आते रहते थे. फूफा जी जब भी घर आते, उनके लिए अच्छे-अच्छे पकवान बनाए जाते और अम्मी अब्बू भी उनसे बहुत खुश रहते थे. क्योंकि वह पैसों के मामले में हमारी काफी मदद करते थे. फूफा की उम्र लगभग 50 साल थी और शकील की उम्र लगभग 26 साल थी. वो बड़ा ही हट्टा कट्टा मर्द था.

शकील जब भी घर आता था, तो वो मेरी अम्मी के कमरे में ही सोता था. अम्मी के कमरे में मैं और मेरी छोटी बहन अलग चारपाई पर सोया करते थे. चूंकि शकील बचपन से ही यहीं रहता आया था … इसी वजह से उसकी अम्मी के साथ लेटने की बात से मुझे नासमझी के कारण अजीब नहीं लगती थी.

कई बार ठंड की वजह से वो अम्मी की रजाई में लेट जाता था और हंसी मजाक करता रहता था. वहीं फूफा जी जब भी आते, तो वो अलग कमरे में सोया करते थे, जो कि अम्मी के कमरे के पास में ही था.

अब्बू हमेशा बाहर बरामदे में सोया करते थे जो एक खुली जगह थी. अम्मी अब्बू के साथ नहीं सोती थीं, ये बात मेरी समझ में बाद में आई. अब्बू देसी दारू पीते थे, जो अम्मी को पसंद नहीं था.

पहले मुझे ये सब नॉर्मल लगता था लेकिन उम्र बढ़ने साथ साथ मुझे अब धीरे धीरे शक होने लगा था. क्योंकि जब शकील अम्मी के पास होता और हम बाहर होते, तो शकील और अम्मी फुसफुसा कर बातें करते थे.

समझ आने के बाद से मुझे यह बहुत अजीब लगने लगा, मैं सोच रहा था कि बात कुछ और है. इसलिए मैंने उनकी बातों को सुनने के लिए कोशिश करना शुरू कर दीं.

अब जब भी अम्मी और शकील पास बैठते थे, तो मैं अम्मी के फोन में वॉइस रिकॉर्डिंग लगा कर ऑन कर देता था.

ऐसे ही एक दिन उनकी बातों को रिकॉर्ड किया और बाद में वो रिकॉर्डिंग सुनी, तो मैं हैरान रह गया.

उसमें अम्मी बोल रही थीं- शकील क्या कर रहे हो … छोड़ दो, कोई देख लेगा. मुझे जांघों में गुदगुदी हो रही है.

मतलब शकील रजाई में से अपना हाथ अम्मी की जांघों में फिरा रहा था. अम्मी उसको कई बार पकड़ कर बोल रही थीं कि मान जाओ यार … हाथ बाहर निकालो.

दूसरी आवाज शकील की आई. वो अम्मी को बोल रहा था- आज तो आपको देनी ही पड़ेगी.
अम्मी- नहीं मुझे कमर में दर्द हो रहा है.
वो उससे कमर दर्द का बहाना बना रही थीं

शकील बोला- कोई बात नहीं … मेरे पास आपकी कमर का इलाज है. आज मैं आपकी चुदाई के साथ कमर का इलाज भी कर दूंगा.

अब अम्मी और शकील अपनी मस्तियां करने लगे … उनकी चुम्मियों आदि की आवाजों के साथ ‘उंह आंह … लगती है … टांग तो उठाओ यार … आंह..’ ये सब आवाजें सुनाई दे रही थीं.

इस बीच कई बार शकील की आवाज आई. उसने अम्मी से कहा- आप अपनी कोई सहेली पटवा दो.
उसकी बात का उत्तर देते हुए अम्मी कह रही थीं- अपने आप पटा लो … मुझसे ये सब नहीं होता.

उनकी ये सब रिकॉर्डिंग सुन कर मुझे सारी कहानी समझ आ गई कि शकील और मेरी अम्मी का जिस्मानी रिश्ता है.

शकील के अलावा फूफा जी पर भी मुझे कई बार शक हुआ. मैंने अम्मी और फूफा को एक बार बाथरूम में से एक साथ निकलते हुए देखा था. मुझे यह बात पहले अजीब लगी, बाद में मैंने सोचा कि क्यों ना इनको मजे करने दिया जाए. क्योंकि अब्बू काम की वजह से व्यस्त रहते थे. अम्मी की अपनी जरूरतें हो सकती हैं. ये तो अच्छा है कि वे ये सब घर में ही करती हैं … यदि बाहर किसी के साथ ये सब करतीं, तो शायद बदनामी भी हो सकती थी.

एक बार फूफा जी घर आए हुए थे. यह उस दिन की घटना थी, जब सर्दियों के मौसम में मेरे स्कूल में छुट्टी चल रही थीं.

उस दिन फूफा जी दिन के चार बजे ही घर पर आ गए थे. शकील के टैक्सी चलाने की वजह से उनको अपने परिवार की ज्यादा फिक्र नहीं रहती थी. हालांकि उस दिन शकील भी शाम को टैक्सी लेकर सीधा हमारे घर ही आ गया.

फूफा और शकील को दोनों को नहीं पता था कि उनका अकाउंट एक ही बैंक में है. मतलब वे दोनों एक ही ब्रांच में अपना डालना निकालना करते थे. मेरी अम्मी उन दोनों को ही अपने शरीर से खेलने दे रही थीं.

मैं उन दोनों को देख कर बहुत खुश था कि आज इन दोनों की चुदाई देखूंगा. मैंने अपने दोस्त से एक एफएम पर सुनाई देने वाला रिकॉर्डर मांगा. ये डिवाइस काफी सस्ती आती है और कॉर्डलैस होती है. मैंने उसको अम्मी के बिस्तर के पास सैट कर दिया. इसके बाद मैं कान में इयरफोन लगा कर अपने बिस्तर में घुस गया. मैंने एफ एम चालू करके उन दोनों की आवाजों को सुनना शुरू कर दिया. सब कुछ मेरे प्लान के अनुसार ठीक था.

रात को सबने खाना खाया और सोने की तैयारी करने लगे. उस दिन सब जल्दी सो गए. लेकिन अम्मी शकील को फूफा तीनों जागे हुए थे क्योंकि तीनों असमंजस में थे. शकील को लग रहा था कि फूफा उसे पकड़ ना लें, वहीं फूफा शकील की फिक्र कर रहे थे. अम्मी इस बात को लेकर असमंजस में थीं कि वह किसको पहले दें.

फिर अम्मी ने तरकीब निकाली.

जब अम्मी फूफा जी को दूध देने गईं, तो उनको हल्की आवाज में बोला कि शकील आया हुआ है, आज लेन देन नहीं हो पाएगा.
फूफा जी ने कहा- मैं तुम्हारा इंतजार करूंगा … थोड़ी देर से आ जाना.

इतना सुनकर अम्मी अपने कमरे में आ गईं. अब उनके पास एक ही विकल्प था या तो शकील से बहाना बनाएं या शकील से चुदवाकर उसे जल्दी सुला दें और फिर बाद में फूफा से चुदाई करवा लें.

अम्मी ने दूध में नींद की गोली डाली और अपने गिलास बिस्तर के पास रख लिया.

मैं सोने का नाटक करने लगा और कंबल के छेद में से मुझे सब दिखने लगा. शकील अम्मी को रजाई के अन्दर सहला रहा था. उसका हाथ नहीं दिख रहा था लेकिन ऐसा लग रहा था मानो वो अम्मी की रानें दबा रहा हो. उन दोनों को लग रहा था कि मैं सो चुका हूं.

अम्मी ने कहा कि आज रहने दे कमर अकड़ी हुई है. तेरे लिए दूध का गिलास रखा है … दूध पी ले और सो जा. आज तेरे अब्बू भी आए हैं … कहीं कोई दिक्कत न हो जाए.

शकील बोला- पहले आपके दूध चूस लूं … फिर चुदाई के बाद दूध पी लूंगा.
अम्मी बोलीं- मेरी कमर दर्द हो रही है.
शकील ने कहा- आज मैं आपकी कमर की मालिश ऐसे करूंगा कि सब जोड़ खुल जाएंगे.

इस पर अम्मी हंसने लगीं.

इसके बाद शकील ने अपना हाथ अम्मी की चुत पर रख दिया, जिसे अम्मी की सिसकारी निकल गई. वो जोर जोर से अम्मी की चुत में उंगली कर रहा था.

अम्मी ने कहा- इधर बच्चे सो रहे हैं … उधर चलो, रसोई में चलते हैं.



इस बात पर दोनों उठकर रसोई में चले गए. अम्मी के कमरे की खिड़की रसोई का नजारा साफ़ दिखता था. मैंने देखा अम्मी रसोई की स्लैब पर हाथ रख कर झुक कर खड़ी हो गईं. शकील ने अपना हाथ आगे करके अम्मी की सलवार का नाड़ा खोला दिया तो अम्मी की सलवार निचे गिर गई. अम्मी ने पैंटी नहीं पहनी थी.

अपनी पेंट और चड्डी उतार दी थी और वो कमर के नीचे पूरा नंगा था.

फिर शकील ने अपना लंड बाहर निकाला और पीछे से अम्मी की चुत में डाल दिया. लंड लेते ही अम्मी की हल्की सी चीख निकल गई.

शकील ने अम्मी को चोदना चालू कर दिया. वो कुछ ही देर में मेरी अम्मी को ताबड़तोड़ चोद रहा था और मेरी अपनी कुहनियों के बल रसोई की स्लैब से अपने आपको टिकाए हुए खड़ी थीं. उनकी दोनों टांगें फैली हुई थीं. उनकी दूधिया टाँगें बड़ी सेक्सी लग रही थीं. शकील की गांड आगे पीछे होने से साफ़ मालूम चल रहा था कि वो अम्मी की चुत में पूरे अन्दर तक लौड़ा पेल कर चुत चुदाई कर रहा था.

कोई 5 मिनट की धकापेल के बाद शकील के लंड का पानी अम्मी की चुत में निकल गया. वो थक कर हांफने लगा. अम्मी ने बड़बड़ाते हुए अपनी चूचियों को रसोई की स्लैब पर ही रख दिया था और उनके ऊपर से शकील ने अपना वजन रख दिया था.

अम्मी कह रही थीं- आजकल तू जल्दी क्यों झड़ जाता है … मेरी तो प्यास ही नहीं बुझी.

कोई एक मिनट बाद वो दोनों अलग हो गए.

टैक्सी ड्राइवर होने की वजह से शकील शराब पिया करता था, जिसकी वजह से वो ज्यादा देर तक सेक्स नहीं कर पाता था.

हालांकि अम्मी प्यासी रह गई थीं … लेकिन तब वो आज कोई रिस्क नहीं लेना चाहती थीं. इसलिए अम्मी ने शकील से कहा कि अब तू सो जा … सोने से पहले दूध पी ले.
शकील बोला- आप लंड चूस कर खड़ा कर दो … एक बार और करूंगा.

अम्मी ने मना किया.
लेकिन उसने कहा- मेरा मन तो कर रहा है … तुम ऐसे करो कि चुत नहीं दो … अपने मुँह में लंड ले कर मजा दे दो.

अम्मी उसकी यह बात सुनकर राजी हो गईं. इससे शकील का मूड फिर से बन गया और उसने देर ना करते हुए अम्मी को घुटनों के बल बैठाकर अपना लंड अम्मी के गले में उतार दिया. अम्मी शायद पहली बार किसी का लंड मुँह में ले रही थीं, इसमें उन्हें बड़ी तकलीफ हो रही थी.

शकील तो मानो जन्नत में था. वो अपने चूतड़ों को हिला कर अम्मी के गले में अपना लंड ठूंस रहा था. देखते ही देखते उसने फिर से अपने वीर्य से अम्मी का मुँह भर दिया और हांफने लगा.

चुदाई के बाद शकील बाथरूम में चला गया और अपने लंड को साफ किया.

वे दोनों कमरे में आ गए. अम्मी बिस्तर पर लेट गईं और शकील दूध पीकर अम्मी के बाजू में सो गया.

अम्मी ने एक बार शकील को देखा, वह खर्राटे लेने लगा था.

कुछ देर बाद अम्मी बाथरूम में गईं. वहां पर एक सरसों के तेल की बोतल रखी रहती थी. अम्मी ने थोड़ा सा सरसों का तेल अपने कूल्हों और गांड में लगाया क्योंकि फूफा को गांड मारने का बहुत ज्यादा शौक था. ये मुझे बाद में मालूम हुआ.

अम्मी ने बाहर निकल कर कमरे का दरवाजा बंद किया और फूफा जी के कमरे में पहुंच गई. उनके कमरे में अन्दर जाकर बिना आवाज किए दरवाजा बंद कर लिया. दरवाजा बंद होते ही फूफा जी की आंख खुल गई, वे खड़े हुए और उन्होंने अम्मी को पकड़ लिया.

मैंने भी बाहर आकर खिड़की की झिरी से देखना शुरू कर दिया था. कमरे के अन्दर एक जीरो वाट का बल्व जल रहा था.

फूफा जी ने अम्मी को अपनी बांहों में भरा और उनके होंठों से होंठों को मिला दिया. वो अम्मी को चूमने लगे, साथ ही अपने दोनों हाथों से अम्मी की गांड को सलवार के ऊपर से मसलने लगे.

उन्होंने अम्मी को किस करते हुए एक हाथ से अम्मी की सलवार का नाड़ा खोल दिया और एक हाथ अम्मी की सलवार के अन्दर डाल दिया ताकि उनके टाइट चूतड़ों का मजा लिया जा सके.

अम्मी उनका लंड पजामे के ऊपर से ही सहलाने लगीं और फूफा जी अम्मी के चूतड़ों को मसलने लगे. तेल लगे होने के कारण अम्मी के कूल्हे काफी चिकने थे.

फूफा जी ने चिकने चूतड़ महसूस करते ही कहा- लगता है तुम्हें गांड मराने में मजा आने लगा है.
इतना सुनकर अम्मी हंस पड़ीं.

फूफा जी ने पूछा- शकील सो गया?
अम्मी ने कहा- हां, तभी तो मैं आई हूं.

इसके बाद फूफा ने अम्मी को नंगा किया और अपने कपड़े भी उतार दिए. फूफा जी ने अम्मी को फर्श पर घोड़ी बना दिया और अम्मी की तेल लगी हुई गांड में अपना लंड रगड़ने लगे.

अम्मी ने गांड फैला ली थी. उसी समय एक ही झटके में फूफा जी ने अपने लंड को अम्मी की फूलों की खाई में उतार दिया.

एक मीठी ‘उम्म्ह… अहह… हय… याह…’ के साथ फूफा जी लंड अम्मी की पहाड़ियों के बीच की गुफा में कहीं खो गया. अम्मी की गांड चुदाई का खेल जोरों शोरों से चलने लगा. धकापेल चुदाई के बाद फूफा जी ने लंड का रस अम्मी की गांड में ही छोड़ दिया था.

इसके बाद फूफा जी ने जेब से दो गोलियां निकालीं. एक गोली उन्होंने खुद खा ली और दूसरी अम्मी को खिला दी.

कोई दस मिनट में ही दोनों में फिर से जोश भर गया था. दुबारा से चुदाई का खेल शुरू हो गया था. इस बार फूफा ने अम्मी की चुत में लंड पेला और सटासट अन्दर बाहर करने लगे.

रात भर में फूफा ने अम्मी की एक बार गांड मारी और 4 बार चुत चुदाई की.

रात में चुदाई के बाद अम्मी अपने कमरे में आ गईं और सो गईं.

सुबह अम्मी से उठा तक नहीं जा रहा था.

शकील सुबह ही उठ गया था और वो अम्मी के मम्मों के बीच में दो हजार रुपए का एक गुलाबी नोट फंसा कर कमरे से निकल गया. वो अपनी टैक्सी लेकर चला गया था. उसके बाद फूफा जी भी अम्मी को पांच हजार रूपए देकर चले गए.

उस दिन मैंने अम्मी के पैरों की और मालिश की ।
और उसके बाद सकील अपने एक दोस्त अंकित को भी लाने लगा अम्मी की चुदाई अब दोनो करते है और पैसे भी देकर जाते है
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#8
पार्ट --6. 1


,., भाई बहनों का ग्रुप



हेल्लो दोस्तों, मेरा नाम जरीन है और आप मुझे मेरे भाइयों की रंडी भी कह सकते है जो कि ने बाद में बनी।

अभी में एक सीधी साधी बड़ी-बड़ी झांटे रखने वाली चुदाई ना समझने वाली एक लड़की हूँ।

मैने आजतक कभी अपनी झांटे साफ़ नहीं की है पूरा जंगलराज हो गया है अब मैं सोच रही हूँ किसी डाकू के आने के पहले जंगल काट दू, पर अक्सर मुझे डर लगता है कोई देख ना ले।

हम चार भाई बहन है मैं अकेली लड़की हूँ मेरे अम्मी अब्बू की और बाक़ी तीन भाई है, मैं तीसरे नंबर पर हूँ उम्र में पहले मेरा बड़ा भाई फेजान, दूसरा सलमान और तीसरा रेहान।

मेरी चूचियाँ बड़ी-बड़ी हो गई है और मैं कभी ब्रा नहीं पहनती शायद कभी ज़रूरत ही भी पड़ी मेरी अम्मी भी नहीं पहनती है यहाँ तक कि मेरी अम्मी तो पैंटी भी सिर्फ़ पीरियड्स में ही पहनती हैं।

हमारे घर एक माहौल खुला खुला-सा है अब्बू दिनभर बाहर रहते है और भाई फेज़ान भी, सलमान ओर रेहान पढ़ाई करते है कभी-कभी घर पर ही रुक जाते है स्कूल नहीं जाते।

एक दिन घर में सिर्फ़ में और अम्मी ही थे अम्मी नहाने जा रही थी और मैं बैठी थी अम्मी के फ़ोन में गैम खेल रही थी इतने में पता नहीं क्या हुआ और पोर्न चालू हो गई जोरों से आवाजें आने लगी मैं देखे जा रही थी अम्मी ने मेरे हाथ से फ़ोन लेकर साइड रख दिया।

अम्मी ने कमीज़ नहीं पहनी थी उनकी चूचियाँ साफ़ नज़र आ रही थी बड़ी बड़ी। अम्मी मेरी तरफ़ देख मुस्कुरा रही थी तो मुझे समझ ही नहीं आया कब मेरे हाथ से अम्मी के दूध दन गए, अम्मी मेरी ओर देखती हुई चली गई नहाने, अक्सर अम्मी नहाते वक़्त दरवाज़े की कुण्डी नहीं लगती है आज भी नहीं लगाई थी।

मुझे अम्मी को ऐसे देखने में मज़ा आ रहा था। मेरे साथ पता नहीं क्या हुआ था मेरे पैरों के बीच कुछ गीला-सा महसूस हो रहा था।

थोड़ी देर में अम्मी ने मुझे बाथरूम में बुलाया में झट्ट से चली गई अन्दर नजारा अलग ही था अम्मी अन्दर नंगी खड़ी थी उसके हाथ में एक रेजर था जो कि चूत पर था और चूत पर शेविंग क्रीम लगीं हुई थी, अम्मी मुझे देखकर बोली "क्या हुआ ऐसे क्या देख रही है?" मैने ना में सिर हिलाया अम्मी बोली "चल इधर आ देख तो कहीं कटा तो नहीं"।

मै पास गई तो अम्मी बोली "कपड़े उतार दे नहीं तो खराब हो जाएंगे मेने शरमाते हुए सलवार का नाड़ा खोला और उतार दी" अन्दर गई तो अम्मी बोली "फर्श गीला है तू नीचे बैठेगी तो कमीज़ खराब हो जाएगी"।

मैने कहा "अम्मी मैने अन्दर कुछ नहीं पहना है" तो अम्मी ने कहा "मैने तो जैसे तेरे सामने बुर्का पहन रख हो।"

मैने अम्मी की तरफ़ देखते हुए अपने कपडे उतार दिए मेरी कमीज़ उतरते ही मेरे बूब्स उछलते हुए बाहर आ गए अम्मी बोली "मेरी बच्ची बड़ी हो हुई है"।

मै बाथरूम में चली गई और अम्मी की चूत के पास बैठ गई एक जगह कट-सा गया था उस्तरे से मैने अम्मी से रेजर लिया और में चूत साफ़ करने लगी मुझे मज़ा आ रहा था ऐसा करने में।

बाल साफ़ होते ही अम्मी की गोरी चिकनी फेली हुई चूत दिखने लगी चूत के अंदर से पानी रिस रहा था अम्मी ने दोबारा रेजर घुमाने को कहा और जब में खड़ी हुई तो अम्मी ने देखा कि मेरी चड्डी गीली थी और झांटे बाहर आ रही थी।

अम्मी मुझे डांटने लगी बोली "इतने बड़े-बड़े नाल के लिए तुझसे करे नहीं साली कुत्ती तुझसे नहीं हो रहे थे तो मुझे बोल देती में कर देती" अम्मी ने इतने में मेरी चड्डी नीचे खींच दी अब मैं पूरी नंगी उनके सामने थी।

अम्मी ने मेरी झांटे पकड़कर खींच दी मैं चिल्ला उठी और बोली "अम्मी मैं अब ध्यान रखूंगी आपसे ही झांटे बनवाऊंगी बस"। अम्मी ने अब शेविंग क्रीम मेरी चूत पर लगाया मुझे एक अजीब-सा मज़ा आ रहा था। अम्मी ने रेजर से मेरी झांटे साफ़ की और उन्हें एक थैली में भरकर रख दिया। मेरे पूछने पर वह कुछ नहीं बोली और हम दोनों बाथरूम के बाहर भी नंगी ही थी।

मैने अम्मी को कपडे पहनने को बोला तो वह बोली "झांटे बनाने के बाद कुछ देर हवा लगने देनी चाहिए नहीं तो चूत की जगह काली पद जाती है" हम दोनों अब नंगी ही थी अम्मी की चूत से पानी रिस रहा था और जांघों तक आ गया था। अम्मी छत पर जा रही थी और मैं पीछे थी मैने अम्मी को रोका तो वह बोली "कोई नहीं आएगा कोई नहीं देखेगा और देख भी ले तो क्या" हम दोनों छत पर नंगी घूम रही थी आसपास कोई घर भी नहीं था क्योंकि हमारा घर गाव के बाहर खेत में है।

अम्मी तो बिल्कुल फ्री दिख रही थी जैसे कोई डर ही ना हो। अम्मी बोली "अपने पैरों के बीच इस ठंडी हवा को महसूस कर इस छेद के अंदर जाने दे हवा"।

अम्मी ने सब मेरी चूत देखी और बोली "अभी तक अनछुई है मेरी तो तेरी उम्र तक पता नहीं कितनों ने चोद ली थी" अम्मी ने कहा "इसे तो मैं अपने सामने खुलवाऊंगी वीडियो बनाते हुए" मैं शर्मा गई।

और बोली "तूने कभी लेस्बियन का नाम सुना है?" मुझे पता तो था पर मैने माना कर दिया अम्मी ने हंसकर मुझे उठाया और वह नीचे बैठ गई औएरी चूत चाटने लगी मुझे बहुत मज़ा आ रहा था मैं सिसक रही थी कुछ ही देर में मैं अम्मी के मुंह में झड गई अम्मी सारा माल पी गई, अब मेरी बारी थी मैं नीचे बैठ गई और अम्मी की चूत चाटने लगी अम्मी भी कुछ देर में झड़ गई और मैं सारा माल पी गई। अम्मी बोली "यह होता है लेस्बियन"।

हम नीचे आकर सो गए ऐसे ही नंगे। कुछ देर बाद मेरी नींद खुली जोरों से घंटियाँ बजने की आवाज़ से मैने अम्मी को उठाया वा बोली "शायद सलमान ओर रेहान होंगे" हम कपडे पहनने लगे अम्मी ने फट से सलवार कमीज़ पहन ली ब्रा पेंटी तो पहनना थी नहीं मैं अपनी चड्डी ढूँढ़ रही थी तो अम्मी बोली "तू चड्डी छोड़ अब से तुझे चड्डी पहनने कि कोई ज़रूरत नहीं है चड्डी तो बच्चियाँ पहनती है तू रहने दे" मैने इसे ही सलवार पहन ली मुझे अच्छा लग रहा था ओर कुछ अजीब भी कमीज़ मेरी चूत से चिपके जा रही थी और तो और बालों में चिपक रही थी।

दरवाजे पर सलमान और रेहान थे वह अन्दर आ गए।

अम्मी ने हमे खाना खाने बिठा दिया मेरे मुंह पर अभी भी शायद अम्मी का पानी लगा था सलमान ने देख लिया और साफ़ किया मेरे होंठ पर से और सूंघने लगा शायद उसे कुछ शक हुआ और वह खाना खाने लगा।

अब शाम को अब्बू और फ़ेज़ान आ गए हमने खाना खाया और अब्बू आज कहीं बाहर चले गए रता को वक़्त देखकर अम्मी ने मुझे रात को छत पर आने को कहा।

सलमान को कुछ शक-सा था। क्योंकि हम एक ही कमरे में सलमान और मैं और दूसरे में रेहान और फ़ेजान सोते थे। रात को मैं टाइम देखकर छत पर जाने लगी रास्ते में अम्मी का कमरा देखा तो वह नहीं थी। मैं ऊपर गई छत का दरवाज़ा खुला था मैने बाहर से ही अपने कपड़े उतार दिए और चली गई मुझे नहीं पता था कि सलमान मेरे पीछे है और उसने सब कुछ देख लिया है।

मै ऊपर गई वाहा अम्मी नंगी होकर हवा का मज़ा ले रही थी शायद हवा से चुदवा रही थी वह पैर फेलाते खड़ी थी मैने बोला "गांड भी मरवा को हवा से" और हसने लगी।

अब मैने फट से अम्मी की चूत चाटने का कार्यक्रम शुरू कर दिया कुछ देर में अम्मी सिसकते-सिसकते झड गई मेरे मुंह में। अब बारी सिसकने की मेरी थी अम्मी अब नीचे थी अम्मी ने जैसे ही शुरू किया मेरी नज़र दरवाज़े पर पड़ी वाहा से सलमान मुंडी बाहर निकले देख रहा था सब कुछ और मुझसे नज़र मिलते ही उसने अपना लन्ड मुझे दिखा दिया मैने अम्मी को बोलने की कोशिश की तो वह बोली "सब बातें झड़ने के बाद करेंगे अभी बहुत मज़ा आ रहा है"।

मैं भी अब मज़ा ले रही थी अब मेरी आंखे बाद थी और अम्मी रुकी और अचानक से एक मूसल लंड आकर मेरी चूत में गया चूंकि मैं सिसकते-सिसकते नीचे लेट गई थी तो लंड आधा अन्दर चला गया खून निकल रहा था।

मै ज़ोर जोर से चिल्ला रही थी अम्मी बोली "और ज़ोर से चिल्ला ताकि तेरे बाक़ी दोनों भाई आ जाए और तुझे पटक-पटक के चोदे"।

मैने चिल्लाना कम कर दिया वह लंड और किसी का नहीं सलमान का था कुछ देर में समान ने ज़ोर का झटका मारा और पूरा लन्ड अन्दर उतर दिया मैं चिल्लाने की कोशिश कर रही थी पर अम्मी ने मेरे मुंह पर हाथ रख दिया और बोली "अगर एक बार और चिल्लाई तो मुंह में मुत दूंगी साली कुत्ती छिनाल"।

ऐसा ही हुआ सलमान ज़ोर जोर से धक्के मार रहा था और मेरी जैसे ही आवाज़ निकली अम्मी मेरे ऊपर आ गई और मेरे मुंह में मूतने लगी मैं कुछ मूत तो गटक गई और कुछ बाहर गिरा दिया।

अब सलमान झड गया था मेरी चूत में अम्मी मेरी चूत पर चली गई चाटने और सलमान मेरे मुंह पर आ गया मैं लंड चाटने लगी लंड कुछ देर चाटने के बाद फिर कड़क हो गया अब बारी अम्मी की थी अम्मी को सलमान ने रगड़-रगड़ के चोदा अब हम तीनों नंगे पड़े थे छत पर उजाला हो गया था।

हम उठे मुझसे चला भी नहीं जा रहा था अम्मी और सलमान ने मुझे पकड़कर मेरे कमरे में नंगे ही सुला दिया। कुछ देर बाद सलमान कमरे में आय और मेरी चूत को चूमने लगा मुझे अच्छा लग रहा था पर दर्द हो रहा था चूत में।

अब अम्मी आई और बोली "जरीन हम तो वीडियो भूल ही गए" अम्मी पछताने लगी और बोली "कोई बात नहीं तुम्हारे पास एक और छेद है" अम्मी मुस्कुराई मैं बोली "अम्मी अभी नहीं हो पाएगा"।

पर मुझे यह समझ नहीं आया कि सलमान ऊपर केसे आया और अम्मी ने केसे उसे मुझे चोदने दिया यह सोचते हुए मुझे नींद आ गई।

कुछ देर बाद एक ज़ोर का झटका मेरी चूत में लगा और मेरी जैसे मानो जान ही निकल गयो हो एक लंड जो कि सलमान से भी बड़ा था मेरी चूत के अंदर चला गया, मैने जैसे तेसे आंखे खोली तो देखा कि फेजान था मैने उसे हटाने की कोशिश की पर मैं नाकामयाब हुई कुछ देर में वह मेरी चूत के अंदर ही झड़ गया।

अब मैं बोली "तुझे मेरी चूत का पाठ किसने दे दिया, क्या यहाँ प्रसाद बंट रहा है जो आ गए लेने?" फेज़ान ने जवाब दिया "अम्मी ने है बोला है मुझे तेरी मारने को सलाई छिनाल रंडी होशियारी दिखती है रुक तू तुझे बताता हु" कहकर वाहा से चला गया।

मै अम्मी के कमरे में जैसे तेसे गई और देखा कि फेज़ान वाहा बैठा था और मैं अम्मी के पास गई जब में नंगी ही थी अन्दर जाते ही अम्मी और फेजान मुझ पर हसने लगे मैने जब हंसी का कारण पूछा तो अम्मी ने बताया "यह तीनों भाई मुझे दो साल से चोद रहे है कभी-कभी तो तीनों एकसाथ भी टूट पड़ते है इसलिए तुझे हमारे चुदाई के खेल में शिल किया" मुझे गुस्सा आ रहा था।

अम्मी ने बताया कि वह अब्बू से परेशान थी वह कभी घर पर नहीं टिकते इसलिए उन्हें मेरे भाइयों से चुदवाना पड़ा पर क्या फ़र्क़ पड़ता है चूत ही तो है कोई भी चोद सकता है।

अम्मी ने बताया कि तीनों भाई बहुत दिन से मुझे चोदना चाहते है पर अम्मी ने रोक रखा था वरना कब का मेरा रेप हो जाता। फिर अम्मी बोली "सलमान हमारी शर्त जीत गया था इसलिए उसे तेरी चूत खोलने का मोका मिला"।

मैने पूछा कैसी शर्त अम्मी बोली "जब हम चाहे उसकी गांड मार सकते है मेरे पास एक नकली लंड भी है उससे और असली से भी"।

मै बोली "मुझे तो तुम्हे गांड मरवाते देखना है वह भी दो लंड से तुमने मुझे दर्द पहुँचाया है"।

तो अम्मी ने बोला "तू ही मार लेना मेरी गांड"। आज पूरे दिन मैने कपडे नहीं पहने और दोपहर को रेहान आ गया रेहान ने आते ही लंड निकाला और मेरे मुह में दे दिया मैं चूसने लगी और कुछ देर उसने चुदाई की।

रेहान का लन्ड फैजान ओर सलमान से बड़ा था मुझे दर्द तो हुआ पर सबसे ज़्यादा मज़ा भी रेहान से ही आया।

अब मैं पूरी औरत बन गई थी रात हुई हमने खाना खाया वैसे ही नंगे अम्मी को अब्बू से पता चला कि आज वह नहीं आने वाले।

अम्मी बड़ी खुश थी मैने ख़ुशी खुशी में अम्मी की अलमारी से नकली लंड निकाला पर मैने देखा कि अम्मी की अलमारी 4-5 तरह के खिलौने थे उसमे एक बट प्लग भी था मैने सारे निकाल लिए और मुझे एक चुदाई की तरकीब सूझी।

मै सारे खिलौने लेकर हॉल में आ गई जहाँ सब बैठे थे मैने सारे खिलौने सामने रख दिए और कहा "अपनी अपनी ओकात अनुसार उठा लो" सब आश्चर्य में थे मैने कहा "अब सब इन्हे अपनी-अपनी गांड़ में डालो तभी मेरी चूत मिलेगी नहीं तो भूल जाओ मेरी चूत" और मैं अपनी चूत सहलाने लगी उनके सामने।

रेहान ने सबसे लंबा वाला डिल्डो उठाया था फैजान ने बट प्लग और सलमान ने वाइब्रेटर अम्मी ने 7इंच मोटा डिल्डो लिया था और मेरे हिस्से का एक बचा था बट प्लग।

शुरुआत मेने की बट प्लग लगा लिया जैसे तेसे गांड का मुंह फट गया दर्द हो रहा था पर अब ठीक है।

फैजान को अम्मी ने घोड़ी जैसे होने को कहा फेजां मेरी तरफ़ घूर रहा था पर वह घुटनों के बल आ ही गया अम्मी ने बट प्लग पर थूक लगाया और एक ही झटके में पूरा प्लग अन्दर।

अब बारी आई सलमान की तो वह बोला "अम्मी मुझे वेसे भी गांड मरवानी ही है तो आप पहले भाई और रेहान से मेरी गान्ड मरवा दो ताकि मुझे इससे दर्द ना हो" सलमान की बात सुनते ही फैजान और रेहान उसपे टूट पड़े पर अम्मी बोली "रुक भेन के लवडे रेहान पहले लंड अंदर डाल फिर" रेहान का मुंह देखने लायक हो गया।

अम्मी ने उसे पैरों के बल बैठने को कहा वह करता भी क्या बैठ गया अम्मी ने उसकी गान्ड से डिल्डो लगाया वह लगभग 6इंच का था अम्मी ने मेरी ओर इशारा किया और मैं बिना कुछ सोचे रेहान के कंधे पर बैठ गई। एक ही झटके में पूरा का पूरा डिल्डो अन्दर चला गया रिहान चिल्ला रहा था पर को सुनता वैसे भी कोई आसपास ना था।

रेहान की गांड से खून आ गया अम्मी डिल्डो आगे पीछे कर रही थी कुछ देर बाद रेहान खड़ा हुआ पर उसका लन्ड बैठ चुका था अब मैं उसका लन्ड चूस रही थी।

कुछ ही देर में रेहान का लंड खड़ा हो गया और सलमान को फैजान ओर रेहान ने उल्टा लेटाया और उसकी गान्ड पर अम्मी ने ख़ूब सारा थूक लगाया।

अब फैजान सलमान के ऊपर आ गया और अपना लन्ड उसकी गान्ड पर घिसने लगा और रेहान सलमान के मुंह तक पहुँच गया इधर फैजान ने झटका मारा उधर सलमान का मुंह खुलते ही रेहान ने सलमान के मुंह में झटका मारा।

सलमान की गांड बहुत सख्त थी पर फैजान का लन्ड का टोपा ही अन्दर गया था रेहान अपना लंड आगे पीछे कर रहा था इतने में एक और झटका मारा फैजान ने और आधा लंड अंदर चला गया थोड़ी मसक्कत के बाद पूरा लन्ड अन्दर हो गया खून भी आया और कुछ देर में फैजान ने अन्दर ही खाली कर दिया अब फैजान और रेहान ने अदला बदली कर ली।

हम दोनों अम्मी और मैं बैठकर इन तीनों की वीडियो बना रहे थे। मज़ा तो बहुत आ रहा था।

कुछ देर बाद रेहान भी सलमान की गांड में ढेर हो गया। रेहान का लन्ड मैने अब चूस चूसकर खड़ा कर दिया रेहान के लन्ड से आज अलग ही ख़ुशबू आ रही थी।

अब मैने सलमान की गांड की ओर देखा एक छेद-सा नज़र आ रहा था बस मैने वाइब्रेटर लिया और अन्दर साल दिया और वाइब्रेटर चालू कर दिया सलमान उछल रहा था और पूरा वाइब्रेटर हो रहा था।

अब फैजान और रेहान मेरे पास आते और दोनों ने अपना लंड एकसाथ मेरे मुंह में फसा दिया, मेरा मुंह फटा जा रहा था।

और मेरी गान्ड भी फट रही थी यह सोचकर की इनको अगर सलमान की गांड मारने में इतना मज़ा आया तो मेरा क्या करेंगे?

अब फैजान अम्मी की तरफ़ बढ़ गया और उनको चूमने लगा और वह दोनों चुदाई करने लगे इधर रेहान और में चुदाई कर रहे थे। मुझे बहुत मज़ा आया इस बार।

हम इसे है सो गए। सुबह उठकर मैने ऐसे ही नाश्ता बनाया और हमने ऐसे ही खाया।

आज से हम सबने एकसाथ सोने का फ़ैसला किया।

पर बात अब अब्बू की थी पर करते भी क्या तो अम्मी बोली "अगर तुम्हारे अब्बू मान जाए तो मज़ा आ जाएगा"।

मैने कहा "अब तो उनके आते ही मैं उनका लंड अपनी चूत में लेकर रहूंगी और अगर पहली रात में ना लिया तो मेरी गान्ड है और तुम चारों"।

अगले दिन मेरे अब्बू आ गए मैने कपडे पहने अब्बू को मैने दोपहर में खाना दिया और मैं वही बैठ गई पैर चोडे करके मैने स्कर्ट पहन रखी थी चड्डी का तो पता था ही नहीं।

इतने में मैने अब्बू के पजामे में हलचल हुई और मैने सीधी खड़ी हुई और अब्बू की तरफ़ देखकर मैने हिम्मत जुटाकर अपनी स्कर्ट ऊंची कर दी और सब कुछ बता दिया अब्बू का रंग फिका-सा ओर रहा था पर कुछ ही देर में उनके चेहरे पर ख़ुशी की लहर आ गई।

मै बोली "या तो आप मुझे सबके सामने चोद दो या फिर मेरी गांड मारते हुए उन चारों को देख लो"।

अब्बू मेरे पास आए और मेरी चूत देखने लगे उन्हें मज़ा आ रहा था। उन्होंने मेरे कपड़े उतार फेके मैं भी पूरा साथ दे रही थी मेरी भी चूत मैं खुजली हो रही थी।

अब्बू के पजामे में तम्बू बना था मैं अब पूरी नंगी थी।

मै नीचे बैठ गई अब्बू का पजामा उतार मैं उनका लंड चूस रही थी उन्हें बड़ा मज़ा आ रहा था।

फिर मैने अब्बू को कहा "चलिए हॉल में चलते है सबके सामने चुदाई करेंगे"। अब्बू मेरे पीछे-पीछे आ गए। हम दोनों नंगे ही थे, अब्बू को आए एक घंटा भी नहीं हुआ था और मैने लंड लेने की तैयारी कर ली थी यह देखकर वह चारों शोक में थे।

मैने उनके सामने ही अब्बू का लन्ड चूसने का कार्यक्रम शुरू कर दिया।

अब्बू ने अब मुझे खड़ा होकर झुकने को कहा मैने भी ऐसा ही किया, अब्बू ने पीछे से लंड मेरी चूत में पेल दिया मैं थोड़ी-सी सिसकाई पर मुझे मज़ा आ रहा था कुछ देर बाद चोदने के बाद अब्बू ने सारा माल मेरे अंदर ही झाड़ दिया।

पर मुझे शांति नहीं मिली में सलमान का लन्ड चूस रही थी पर जब लंड खड़ा हुआ उसे गांड में दर्द हो रहा था।

फेजान मेरे पास आया और मुझे सोफे पर हाथ टीका कर खड़े होने को कहा और मैने ऐसा ही किया और फेज़ान ने मेरी चूत में लंड फसा दिया कुछ देर आगे पीछे होने के बाद मेरा पानी निकाल गया और फिर फैजान का भी।

हम सब अब कपडे नहीं पहनते है जब कोई मेहमान आता है तो या तो उसे हम अपने साथ मिला लेते है या फिर उसे जल्दी से जल्दी भगाने की कोशिश करते है।

हम चुदाई करते-करते 2 साल बीत गए है इन दो सालो मी मैने भाई के दोस्त कार्तिक और रोहित से भी चुदी थी उन दोनो का लंड कम से कम 9 इंच लम्बा और तिन इंच मोटा था मै उन लोगो से चुदते वक्त बहुत चिल्लाती थी ये दोनो मुझको कुतिया बना बना कर चोदते थे  दो साल बाद अम्मी अब्बू अब फैजान के लिए लड़की ढूँढ़ रहे है।

कुछ दिन की मस्ककत के बाद एक अच्छी दिखने वाली लडकी मिली।

जिसका नाम आयशा था वह बाहर से तो बडी अच्छी थी उसके बूब्स बड़े-बड़े थे मेरी तरह जैसे किसी ने ख़ूब चूसे हो ऐसे मेरी तरह।

जल्दी ही दोनों का निकाह कर दिया गया।

अब आज उसकी सुहागरात है मैने फैजान के कमरे में दूध का गिलास जिसमें वियाग्रा कि गोली मिला दी थी मैने रह दिया।

और साथ ही सेक्स की गोली जो कि लड़कियों को उत्तेजित करने के लिए होती है वह दूध में मिलाकर मैने एक घंटे पहले ही आयशा को पिला दी थी।

उसका रिजल्ट मेरे सामने था आयशा बार-बार अपनी गांड हिला रही थी मानो लंड की सदियों-सदियों से भूकी हो।

अब आयशा भाई के कमरे मैं चली गई और मैं और रेहान दोनों बाहर की तरह खिड़की में थे। सलमान ने पहले ही कमरे में कई जगह कैमरा लगा दिया था जैसे कि बाथरूम में।

अम्मी अब्बू मेहमानों के साथ थे।

फैजान पलंग पर बैठा था और आयशा अन्दर आई दरवाज़ा बन्द कर लिया था दिनों ने फैजान को आयशा ने दूध पिलाया थोड़ी बहुत बात की और यह सब बहुत ही जल्दी ही रहा था क्योंकि गर्मी दोनों के पैरों के बीच हो रही थी।

आयशा एक सरप्राइज का बोलकर बाथरूम में गई और अन्दर जाकर सारे कपड़े उतार दिए और बाहर आ गई हम दोनों देखते रह गए और साथ ही फैजान भी की उसकी नई नवेली दुल्हन पहली ही रात को सीधी नंगी होकर उसके पास आ गई।

आयशा बोली "बातें तो कल भी कर लेंगे चलो पहले मुझे चोद दो" यह सुनकर मैं ही भौचक्का रह गई सीधी साधी दिखने वाली लडकी सीधी चोदने का बोल रही है।

इतने में आयशा फैजान के ऊपर आ गई और उसके कपडे उतारने लगी और फिर उसने फैजान का लन्ड अपने मुंह में डाल लिया और आगे पीछे होने लगी।

अब वह अपनी चूत फैजान के मुंह पर रखकर बोली "चलो मेरी चूत चाटो" रेहान की और देखकर में बोली "इस भड़वे ने मेरी कभी चूत नहीं चाटी और उसकी तो चूसे जा रहा है" , रेहान मेरी और देखकर हंस रहा था।

रेहान बोला "तुम फिकर मत करो मैं चाट दूंगा बस"।

अब आयशा फैजान के लन्ड पर सवार हो गई और ऊपर नीचे हो रही थी आयशा को कोई दर्द नहीं हो रहा हो मेरी चूत में भी कभी-कभी दर्द रहता है पर उस तो कुछ नहीं हो रहा था वह तक मुझसे भी बड़ी रंडी निकली।

रेहान को मैने यह सब बताता वह बोला "चलो कोई तो तुम्हारा तोड़ मिली उसकी तो मैं पटक पटककर चोदूंगा और कल ही इसका रेप करूंगा" मैं बोली "चल मैं तेरे साथ हूँ बस तू एक बार शुरू कर देना"।

कुछ देर में फैजान का खाली हो गया और दोनों एक और राउंड चुदाई के बाद सो गए।

अगले दिन मेरे कमरे में बैठकर सलमान, रेहान और मैं वह वीडियो देख रहे थे। उस वीडियो में जब आयशा बाथरूम में थी तब उसने कपडे उतारे तो उसमे उसने अन्दर कुछ नहीं पहना था बस शादी का जोड़ा ही था ना चड्डी और ना ही ब्रा थी और उसके बाद उसने टिश्यू पेपर लिया और चूत पोंछ रही थी शायद किसी का मुठ लगा था आयशा यह भी बडबडा रही थी कि "साले कुत्ते मौलवी ने इतनी जल्दी कर दी कि ढंग से चुदवा भी ना पाई आखिरी बार घरवालों से" यह सुनकर मेरी तो बत्ती ही उड़ गई।

रेहान बोला "अब तो बहुत आसान होगा इसकी चुदाई" , मैं बोली "यह तो रंडी की भी अम्मी है"।

आज फिर हमें चुदाई देखने का प्लान था और देखते-देखते रेहान मेरी चूत पर टूट पड़ा मैं अभी आवाज़ भी नहीं कर सकती थी मेहमान जो कान लगाए थे।

अगले दिन सुबह सब मेहमान चले गए थे अब सिर्फ़ घर वाले ही थे। सुबह के 10 बज रहे थे और अब्बू भी कहीं बाहर जाने की तैयारी कर रहे थे और अम्मी किचन में थी। आयशा कमरे से बाहर आई रात भर की ठुकाई चुदाई ने उसे थका दिया था इसलिए वह देरी से उठी जबतक हम वह वीडियो देख चुके थे।

आयशा बड़ी ही मादक लडकी थी गांड हिला-हिला के चलती थी सुबह-सुबह वह इसे नाटक कर रही थी जैसे रात में ही उसकी सील टूटी हो लड़खड़ाते हुए चलना, पेट में दर्द जेसा ढोंग जबकि हम लोगों को पता था कि वह किसी है।

अम्मी को भी जल्दी ही पता चलने वाला था उसके रंडीपने का।

कुछ देर बाद हमने सबने खाना खाया और मैं नहाने चली गई आज मैने फिर अपनी चूत के बाल साफ़ किए और केआदी देर कमरे में नंगी ही पड़ी रही इसी इंतज़ार में की कोई आ जाए चोदने पर कोई नहीं आया दरवाज़ा भी खुला ही था।

मैने जैसे ही सलवार कमीज़ पहनी वैसे भी क्या देर लगती चड्डी तो वैसे भी पहनना बन्द कर ही दिया था।

आयशा आ गई बोली "जरीन मेरा मन नहीं लग रहा था अकेले तो आ गई" हम दोनों ऐसे ही बातें कर रहे थे। हम दोनों कुछ ही देर में काफ़ी खुल गए थे।

मैने हिम्मत करके पूछा कि "कैसी लगी सुहागरात?" वह बिल्कुल भी शरमाई नहीं और बोली "बड़ा मज़ा आया मानो मैं जन्नत की सैर पर निकली हूं"।

ऐसे ही धीरे-धीरे चोदने पेलने कि बात पर आ गई मैं उससे पूछा "क्या आपने शादी के पहले कभी सेक्स किया था?" जैसे मानो आयशा का सेक्स शब्द सुनकर रंग फीका-सा पड़ गया हो। वह हकलाते हुए बोली "नहीं...नहीं तो..." मैने बोला "ऐसा नहीं हो सकता आप को देख कर नहीं लगता कि आपने नहीं चुदवाया होगा ऐसे ही आपके बूब्स इतने बड़े थोड़ी हो गए होंगे" मैं मुस्कुराने लगी।

मुझे देखकर वह बोली "आपके भी तो बूब्स इतने बड़े है आपने नहीं दबावाए क्या?" मैं बोली "दबवाए भी और चुदवाया भी है" , मेरी बात सुनकर वह बोली "सिर्फ एक दो बार किया है बस" मैने कहा "मैने तो चुदवा चुदवाकर बहुत मज़ा किया है कई लोंडों को अपने ऊपर कुदाया है"।

अम्मी ने कुछ देर में हम दोनों को बाज़ार जाने को कहा।

आयशा और मैं इतना खुल गए थे कि खुल कर चुदाई पेलाई की बातें कर रहे थे।

आयशा और मुझे बुर्का पहनकर जाना था बाज़ार तो मैं बुर्का पहनकर आयशा के कमरे में गई तो देखा कि वह भी तेयार थी वह मुझे बोली "जरीन क्या आज एक नया मज़ा करना चाहती हो?" मैने पूछा "केसा मजा?" वह बोली "तुमने चुदवा भी लिया है पर उसस भी ज़्यादा मज़ा है"।

मै अब भी हैरान थी उसने कहा "तुम बस एक काम करो अपने सारे कपड़े उतार दो अगर मुझ पर विश्वास हो तो" मैं बोली "आप जैसा बोलो" मैने झट् से अपना बुर्का निकाल दिया अब कमीज़ निकाल दी आयशा मेरे बूब्स देखती ही रह गई और बोली "यह तो मुझसे भी बड़े है" अब मैने अपनी सलवार भी उतार दी मैं अब पूरी नंगी थी आयशा मुझे देखती रह गई मेरा फिगर था ही ऐसा।

अब वह मेरे पास आई और बोली "जन्नत की हूर लगती हो आप तो" इतना कहकर मुझे बुर्का दिया और बोली "इसे पहन लो" मैने वैसा ही किया। अब मैं अन्दर से पूरी नंगी थी। मैने आयशा का भी बुर्का उठकर देखा उसने भी कुछ नहीं पहना था। हम दोनों के चलने ओर बुर्का पीछे से हमारी गांड में चिपक रहा था पर को देखने वाला था किसे पता कि कौन है।


और मैं समान किचन मैं रखकर आयशा मैं और रेहान मेरे कमरे में आ गए। चूंकि हम सभी एकसाथ सोते थे इसलिए अब कोई कमरा किसी का नहीं था जिसका जहा मन करता वह वहीं सो जाता।




रेहान को आते ही मैने उसे बोला "क्यों रे! बड़ा पूछ रहा था बैंगन के बारे में क्या पहली बार ऐसा देखा है, बड़ा पूछ रहा था तू तो की क्या लगा है उसपे सफेद सफेद" और में झूट मूट का घुस्सा करने लगी क्योंकि मेरा मुंह रेहान की तरफ़ था तो मेरे हाव भाव आयशा भी देख पा रही थी।




मैने अब अपना बुर्का उतार दिया और उससे ज़ोर जोर से बोलने "देख कुत्ते यहाँ से आया वा सफेद-सफेद माल" वह हसने लगा और बोला "चलो चलो आपा ज़्यादा हो गया चुपचाप घोड़ी बन जाओ" और उसने अपने कपड़े भी उतार दिए। आयशा का मुंह खुला कि खुला रह गया यह देखकर तो रेहान ने मेरी चूत में लंड डालकर आयशा के मुंह में डाल दिया। आयशा को कुछ समझ नहीं आ रहा था पर वह लंड का पूरा मज़ा ले रही थी।




आयशा बोली "रेहान तुमने तो मेरे भाई की याद दिला दी" तो मैं चौंककर बोली "क्या तुम अपने भाई से भी चुदती हो?" तो वह बोली "नहीं बल्कि पूरे परिवार से वह भी एकसाथ" अब वह मुस्कुरा रही थी।




इतने में रेहान बोला "तो इसका मतलब आप एक चुदी चुदाई रंडी हो भाई की?" आयशा ने खुलकर इसका जवाब दिया "हाँ अब ने तुम लोगों की प्राइवेट रंडी हूँ पहले सरकारी थी कोई भी बजा लेता था अब तुम है बजाना" मैने पूछा "सरकारी रंडी मतलब?" वह बोली "पहले जिसका मन करता वह ठीक बजा लेता मुझे जैसे मैने हमारे घर के सारे रामेश और आलम  , ड्राइवर राहुल , दूधवाले शर्मा जी सबके लंड चखे है और साथ ही कई अनजान लोगों के भी" यह सुनकर तो मेरी गान्ड ही फट गई। वह बोली "थ्रीसम और गैंगबैंग तो कई बार हुआ है मेरे साथ और साथ ही मुझे सबसे ज़्यादा मज़ा रेप करवाने में आता है"।




रेहान बोला "तो फिर आपके तो दोनों छेद खुले हुए होंगे?" आयशा बोली "आजतक मैने कभी गांड नहीं मरवाई है" तो रेहान बोला "तो ठीक है फिर अब तेयार रहो" मैं कमरे से बाहर आई और अम्मी को जाकर सब बात बताई और अम्मी ने सलमान को अब अम्मी और सलमान दोनों मांगे होकर आ गए वीडियो कैमरा लेकर।




अम्मी बोली "आज मेरी बच्ची की गांड खुलने वाली है"।




अब कैमरा चालू हुआ आयशा विरोध कर रही थी वीडियो का ना कि गांड का। वह बोल रही थी "भले ही दोनों भाई मेरी एक साथ मार लो पर वीडियो ना बनाओ"।




हम कहा मानने वाले थे वीडियो बनाया और जबतक आयशा कि गांड से 10ग्राम खून इकट्ठा नहीं हुआ तबतक मारी रेहान ओर सलमान ने गांड उसकी।




अब लंड मुरझा चुके थे।




रात को अब्बू ओर भाई आ गए तबतक हम नंगे ही थे भाई हमें देखकर चौंक गया और बोला "इसे भी रंडी बना दिया तुम लोगों ने?" और आकर मेरी गान्ड चूमने लगा वह जैसे मानो खुश था आयशा से।




अब हम सबने मिलकर ख़ूब चुदाई की।




अब हम सब ऐसे ही रहते है खुश ओर चुदक्कड़। मैं भी अब बहुत चुदक्कड़ हो गई हूँ मुझे रोज़ लंड चाहिए होता है अब और मैं किसी का भी अब लंड ले लेती हूँ और अगर ना मिले तो अम्मी तो है ही मेरे लिए।
एक बार मै और भाभी जान तो अपने मोहल्ले के कबाड़ी से भी चुद गयी थी फिर उसके बाद अम्मी जान को भी चुदवायी थी अब हमे रोज लंड चाहिए होता है जिस दिन ना मिले तो लगता है की मर जायूंगूंगी
समाप्त।
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#9
Part 7



Kafir lund aur meri virgin chut ka pehla milan



Hello mera naam Sama Praween hai aur main Muzaffarpur se hun. Aaj ki is story me main aapko batungi, ki kese mere boy friend ne meri virginity todi.

Chaliye dosto ab main kahani ko shuru karti hun. Ye story tab ki hai jab main B.com first year me thi tab meri coaching me ek ladka padhta tha.

Uska naam Vikash tha, aur aaj wo mera lover boy friend hai. Tab main bahot jyada '. ladki thi, aur maine soch rkha tha ki main sab kuch shadi ke baad hi karungi.

Par baki sehliyo ko enjoy karte dekh mere man me bhi kuch kuch hone lag gya. Finally maine dicide kiya ki main apna ek boy friend banungu par kabhi usse sex nhi karungi. Haan main uske sath kissing aur boobs dabwane tak karti rehungi.

Jab Vikas ne mujhe purpose kiya toh maine uska purposal accept kar liya. Ab hum boy friend, girl friend ban gye par shuruwat me humara rishta girl friend, boy friend jesa nhi tha.

Kyoki wo ek *** ladka tha aur mujhe uske sath aisa wesa karna kuch thik nhi lagta tha. Yahan tak hume 3-4 mahine ke baad bhi abhi tak ek dusre ko touch nhi kiya tha.

Par uske baad main bhi ab thoda pigalne lag gyi thi, aur hum ek dusre ki bahon me hath dal kar ab coaching jane lag gye. Main burqa pehne rehti thi, isliye raste me koi mujhe pehchan nhi skata tha.

Isi bich humare bich me kissing bhi shuru ho gyi, wo kiss karte time meri gand ko bhi sehlata tha aur mere boobs ko bhi daba deta tha.

Mera bhi ab kuch karne ka man hota tha, wo mujhe karne ko bhi kehta tha par main use mana kar deti thi. Main ye sochti hi akhir main kafir ka lund apni virgin chut me kese le skati hun.

Par meri saheliyo ne mujhe samjhaya ki main uske sath kar lun, par maine unki koi baat nhi mani. Fir valentine day par usne mujhe kha.

Vikas – Sama kyo na hum kuch acha time akele bitaye? Mere friend ka room khali hai hum whan chalte hai?

Mujhe uski niyat par shak hua toh maine use mana kar diya.

Vikas – Yar main kuch nhi karunga, tumhari kasam please chalo naa.

Main uske sath jana toh nhi chahti thi, par jab usne mujhe apni kasam di. Toh maine socha ki chalo dekhte hai ki whan kya hota hai. Isliye main use haan kar di.

Fir hum uske room par pahuche aur hum room ke ander chale gye, aur unhone room lock kar diya. Fir wo mere pass aaya aur wo mujhe kiss karne lag gya.

Wo kiss karte time meri gand ko bhi sehala rha tha, main bhi uske kandhe aur aur uske sir ko pakade hue uski kiss ka reply de rhi thi.

Fir usne mere burqe ke uper se hi meri chut par hath laga diya, ye hum dono pehle bhi kar chuke the. Toh maine koi khass react nhi kiya.

Ab usne mujhe bed par patak diya, aur wo mere uper aa gya. Ab usne mera burqa utarna chaha par maine use rok diya, wo ab fir se mere boobs ko dabane lag gya.

Tabhi usne mera burqa utha kar uper kar diya, ab main samjh gyi ki aaj meri virginity jaane wali hai. Ab wo meri dress ke uper se hi meri chut ko sahalane lag gya.

Maine use rok rhi thi, par wo mera hath side me karke fir se meri chut ko sehalane lag gya tha. Mujhe bhi ab kuch kuch hone lag gya tha.

Par main unhe rokna nhi chahti thi, par wo mujhe aur garam kiye ja rha tha. Ab wo mere lips par bite karte hue mere boobs ko dabane lag gya tha.

Main use rok rhi thi, par main use rokne me puri tarah se fail ho rhi thi. Usne mera pura burqa upar kard iya, aur meri samiz ke uper se wo mere boobs ko buri tarah se masalne lag gya.

Ab main ahah ahah kar rhi thi, aur use rok bhi rhi thi. Par shayad meri maon karne se wo samjh gya tha ki aaj wo sab kuch kar skata hai.

Usne aise hi karte hue mere hajib ko bhi khol diya aur mujhe fir se wo kiss karne lag gya. Ab wo kiss karte hue meri gardan par bite karne lag gya, ab main puri tarah se garam ho chuki thi.

Par main fir bhi use rok rhi thi, par wo samjh chuke the ki main unhe sirf aise hi rok rhi hun ander se toh main bhi uske liye ready hun.

Ab wo meri kamiz ko utarne lag gya aur main use rok rhi thi. Par finally unhone use utar hi diya, uske baad unhone meri bra ko bhi diya.

Ab main uper se puri tarah se nangi ho gyi thi, aur ab main uska khana banne ke liye ready thi. Wo ab mujhe har jagah chumne aur katane lag gya tha.

Ab main bahot garam ho chuki thi, ab wo bhi apne kapade utarne lag gya tha. Ab wo sirf underwear me aa gya, ab wo mere pajami ka nada kholne aur use utarne lag gya.

Main – Please aisa mat karo.

Par main uske hath ko aaj rok nhi pa rhi thi, aur main bhi apni kamar utha kar uska sath de rhi thi. Fir usne meri pajami ko utar diya.

Uske baad usne meri panty ko bhi nikala shuru kar diya, toh usme bhi maine apni kamar utha kar uska sath diya.

Main – Please Vikas aisa mat karo main virgin hun please ye sab rehen do naa.

Vikas – Sama tum mujhe pyar karti ho ya nhi?

Main – Haam.

Vikas – Toh lover ko puri tarah se haq hai apni girl friend ko puri tarah se pyar karne ka. Aaj se humare pyar ka ek new part shuru ho ga, jisme hum dono aaj ek dusre ko khul kar pyar karegen.

Aaj ke bad hum dono ke bich me koi bhi diwar nhi hogi, na hi tumhari ye virginity aur na hi ye humara dharam. Toh kya Sama tum ready ho apne is love ke new part ko enjoy karne ke liye?

Main – Vikas hume apne love ko thoda limite hi rkhna chahyie. Main itne saal se apne virginity ko apne husband ke liye rakhe hui hun, please ise mat todo.

Vikas – Husband ke liye rakhi ho ya lover ke liye?

Main – Main apni virginity ko chhod kar apni har cheej apne lover ko dene ko tyar hun.

Vikas – Aaj velantine day hai yani lover ka din hai, aaj apne lover ko ye haq nhi dogi kya? Agar tum mujhse pyar karti ho toh mujhe pyar karne se rok kyo rhi ho?

Main – Vikas I love you aur mujhe pata hai ki tum mere lover ho, aur tumhara bhi mujhe par haq hai. Isliye aaj tumhare samne main puri nangi hun, aur maine nangi hone bhi tumhara sath diya hai.

Mujhe ye bhi pata hai ki boy friend ka haq apni girl friend par hota hai, jo tum karna chahte ho ye tumhara haq hai. Par please meri feeling ko samjho tum mujhe pyar karte ho toh kya tum meri itni si baat nhi manoge?

Vikas – Sama ye tumhari feeling nhi balki jo tum soch rhi ho, ki tum shadi ke baad karogi aur main *** hun isliye tum nhi karna chahti ho.

Par hum dono lover hai aur hum dono in bato ke bare me nhi sochna chahyie, aur hum dono ko sirf enjoy karna chahyie. Thik hai agar tum abhi nhi karna chahti toh toh iska faisla hum bad me karegen. Tab tak kuch aur karogi?

Main – Kya?

Ab wo mere muh ke pass aaya aur apne underwear se apna lund bahar nikala aur wo bola.

Vikas – Agar tum mujhe pyar karti ho, toh ise bhi pyar karo. Ye kitne mahino se tumhare hontho ke liye taras rha hai.

Main – Par main kabhi aisa nhi kiya hai, please ise bhi rehne do.

Ab isse aage main aur kuch bolti, isse pehle usne mera sir pakad kar apna lund mere muh ke pass kar diya. Maine ye socha ki chalo ye apna hi boy friend hai, aur isko is valentine day par khush karna mera farz hai.

Chalo chut me na sahi main iska lund apne muh me toh le hi skati hun.
(Par ye baat toh sirf Bhagwan ko hi pata thi, ki mere muh ke baad meri chut aur gand ka number aane wala hai.)

Fir mujhse jitna ho skata tha us tarike se main uska lund chus rhi thi.

Fir thodi der baad usne apna lund mere muh se bahar nikala, aur uske baad wo thoda niche aaya aur wo meri chut ko sehalne lag gya.

Main – Please Vikas meri virginity mat todna.

Fir usne mujhe ghumaya aur wo meri gand ko sehalne lag gya. Usne ek pillow meri kamar ke niche rkha aur usne apna lund meri gand par set kar diya.

Main – Ye tum kya kar rhe ho?

Vikas – Tum chut toh de nhi rhi ho? Toh chalo ab apni gand hi de do.

Main – Par.

Vikas – Agar tum mujhse pyar karti ho toh please ab mujhe mat rokna, kyoki aaj ke jamane me husband se pehle boy friend ka haq hota hai.

Maine socha ye baat toh sahi keh rha hai, aur isme iski kya galti hai jo tumhara dharam alag alag hai. Ab jab boyfriend bana hi liya hai, toh uska haq use bhi dena chahyie.

Main ab muskura kar boli – I love you and you can love me, par mujhe aaj yahan se virgin hi ghar jane dena. Baki aaj sab kuch tumhara hai.

Ab usne meri gand par thoda sa oil lagya aur thodi try ke baad apna lund meri gand me utar diya. Ab mujhe dard hua par main us dard ko sehan kar chuki thi.

Wo ab lund ko ander bahar karne ke sath sath meri chut me bhi apni ungli ander karte hue, apne ek hath se mere boobs ko daba rha tha.

Meri chut ab puri tarah se geeli ho chuki thi. Thodi der meri gand marne ke baad usne apna lund bahar nikala, aur wo mujhe kiss karte hue bola.

Vikas – Kesa laga?

Main sirf muskura di, ab usne mujhe sidha kiya aur wo meri chut ko sehalne lag gya. Fir usne uske ander apni ungli karna shuru kar diya, isse main jor jor se moan karne lag gyi.

Ab wo mere uper aaya aur usne apna lund meri chut me set kar diya.

Main – Ye tum kya kar rhe ho?

Vikas – Humare bich ki akhiri diwar ko bhi tod kar main apni love story ko puri tarah se aaj se shuru karne ja rha hua meri jaan.

Jese hi maine use rokne ke liye apna hath aage kiya, tabhi usne mere hath ko pakad kar mere hatho ko uper karke daba diya.

Vikas – Agar tum mujhse pyar nhi karti ho toh bolo main aage kuch nhi karunga.

Main – Vikas tum mere lover ho par kuch toh mere pass rehen do meri suhagraat ke liye.

Vikas – Aaj kal 90% se jyada ladkiya without viginity ke hi suhagraat manati hai. Kyoki wo sab pehle se hi apne sare haq apne boy friend ko de chuki hoti hai.

Ye tumhari virginty humare pyar ke bich ek chhoti si diwar hai. Aaj mujhe ye pyar se de do aur is pyar ko enjoy karo.

Main ab smajh chuki thi ye last minute hai jab main virgin hun.

Main – Please jyda dard mat dena.

Ye janae hue bhi ki ab main aurat banne ja rhi hun, aur main use rok nhi skati hun. Main apne jisme ko hila kar use rokna chah rhi thi, par wo mujhe kiss karte hue mere boobs ko dabane lag gya.

Ab main shant ho gyi aur mere hath ko wo dabaye hue tha. Par jab main apna hath nikalna chahti thi toh usne mere hath ko chhod diya.

Ab maine apna ek hath uske sir par aur ek hath uski kamar par rkh liya. Main karib ye bhool chuki thi, ki jo lund meir chut par hai ab wo meri chut ke ander jane wala hai.

Isi bich usne apne lund ko meri chut par ache se set kiya. Uske baad wo mujhe kiss karne lag gya aur tabhi usne dhaka diya. Pehle dhake me uska lund meri chut ke ander chala gya.

Mujhe bahot kam dard hua, par uske dusre dhaka marte hi main jor se chilane lag gyi. Ab wo pura lund ander dal chuka tha, aur wo mujhe kiss karte hue thodi der lund ko dheere dheere ander karne lag gya.

Ab thodi der bad mujhe bhi acha lagane lag gya, aur main masti me maon karne lag gyi.

Wo samjh gya ki ab sab rukwat khatam ho chuki hai, toh wo mujhe ache se kiss karne lag gya. Thodid er me mera pani nikal gya, aur uske baad uska pani bhi nikal gya.

Hum dono ab bistar par wese hi thodi der leate rahe. Thodi der baad wo fir se mere boobs ko dabane lag gya.

Vikas – Ab kesi hai meri jaan kesa laga?

Main – Jese boy friend ka pyar lagta hai wese hi laga. Par main apni virginity lose karne ka ye experience kabhi nhi bhul paungi. Maine ise bachane ke liye apni gand aur muh sab kuch aapko de diya, par last me aapne wo hi kiya.

Vikas – Meri jaan aaj ke din koi apni virgin girl friend ke sath akela ho. Toh wo kese uski virginity liye bina reh skata hai?

Par saali agar tu ek baar me hi apni chut mujhe de deti, toh shayad aaj teri gand bhi bach jati. Par sali ye tere husband ke nakhare ke chakkar me tu aaj mujhse puri tarah se chud gyi hai.

Main – Acha baba aapko aapka haq aaj mil gya naa? Ab aur haq lena hai ya main ghar jaun?

Vikas – Sali sidha bol naa ki tujhe abhi aur chudna hai?

Main – Boy friend ko uska haq de diya toh ab girl friend hone ka haq mujhe bhi chahyie.

Ab wo fir se mere uper aaya aur usne apne lund ko meri chut par set kiya aur wo mujhe kiss karne lag gya. Fir usne dheere dheere dhake marne shuru kar diya.. Aur fir mujhe pain hua wo pura ka pura lund ander dalne ke baad wahin par ruk gya.

Ab wo mere boobs ko chusne lag gya, aur thodi der bad wo fir se apna lund ander bahar karne lag gya. Thodi der baad bhi use maja aana shuru ho gya.

Thodi der baad hum dono finish ho gya aur fir maine apni dress peheni. Usne meri panty par thoda sa cotton laga diya, taki agar khoon nikale bhi toh mere baki kapade kharab na ho.

Ab jab main apna burqa pehen rhi thi toh mujhe kafi ajeeb sa lag rha tha. Kyoki abhi abhi sex karek burqa pehne me mujhe kafi ajeeb feeling aa rhi thi.

Jab main ghar pahuchi toh mujhse ab chala tak nhi ja rha tha. Maine apne ghar walo ko bol diya tha ki main aaj gir gyi thi, par mere bad mujhe jis tarah se dekh rhi thi.

Shayad wo samjh gyi thi ki ye dard kiss cheej ka hai. Wese bhi unka bhi boy friend hoga, toh unhe bhi ye experience toh hoga hi aur unke hontho par lagi lipstick bta rhi thi.

Ki aaj meri appi mere jiju yani unke boy friend ko wo bhi velentine gift de kar aayi hai.

Fir uske baad mai usase apne nigah tak chudti rahi aur kuch time baad wo apne ek dost ankur se bhi mujhko chodwaya tha ye silsila 4 saal tak chala tha .
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#10
Part -8



अब्बू ने चोदा अपनी बेटी को


सायरा बेटी ने समझा अपने अब्बू का दर्द

हैलो दोस्तो, मेरा नाम मोहम्मद अली खान है और मेरी आयु 53 साल है। मैं पेशे से रिटायर्ड टीचर हूं और दिल्ली में रहता हूं। मेरा कद 5 फीट 6 इंच और रंग गेहूंआ है। मेरा जिस्म पतला और चेहरा क्लीन शेव है। मैं दिखने में कुछ खास नहीं हूं लेकिन पैसा काफ़ी है। मेरी आंखों का रंग काला है और बाल सफेद हैं। अपने बालों की सफेदी छिपाने केलिए डाई लगाता हूं। मेरे घर में, मैं और मेरी बेटी हैं। मेरी पत्नी और मेरे बेटे का 12 साल पहले दुर्घटना में देहांत हो गया था और मैंने दोबारा शादी नहीं की।

मेरी बेटी का नाम का नाम सायरा खान है। उसकी आयु 23 साल और रंग गोरा है। वो दिखने में एकदम मस्त माल है और बहुत नमकीन है। उसका कद 5 फीट 4 इंच है। वो मुझे पापा बुलाती है और वो बिल्कुल अपनी अम्मी पर गई है। उसकी आंखों और बालों का रंग भूरा है और होंठ लाल एवं रसीले हैं। उसका बदन भरा हुआ और सेक्सी है। उसके बूब्ज़ और चूतड़ काफ़ी बड़े-बड़े और उभरे हुए हैं। अगर कोई उसको देखता है, तो उसके नाम की मुठ जरूर मारेगा और उसको चोदने के लिए तड़पेगा। जब उसकी अम्मी का देहांत हुआ, वो काफ़ी छोटी थी और मैंने ही उसको पाला-पोसा है।

बाप बेटी की चुदाई की कहानी

मैंने कपड़े पहनने के मामले में कोई पाबंदी नहीं लगाई। वो ज्यादातर जींस टॉप या जींस शर्ट पहनती है और एमए दूसरे साल की छात्रा है। जींस के साथ जब हाई हील के सैंडिल पहनती है, तो एक दम सेक्सी माल लगती है। उसकी मोटी गांड, बड़े-बड़े गोल बूब्ज़ और भरी हुई जांघों को देखकर मुंह से लार टपकने लगती है। उसकी फिगर का साईज 36-30-36 है और बूब्ज़ के निप्पलों का रंग हल्का गुलाबी है। उसकी गांड और बूब्ज़ काफ़ी भारी हैं और चलते हुए तो उसकी गांड कहर ढाती है। छोटी उम्र में ही उसके बूब्ज़ और गांड काफ़ी बड़ी है।

ये बात दो साल पहले की है। मेरा एक दोस्त मुझे घर मिलने आया और हम रूम में बातें करने लगे। बातों-बातों में मेरी बीवी जुनैदा की बात होने लगी। उसने मुझे पूछा कि शादी क्यों नहीं की तो मैंने कहा सायरा की वजह से नहीं की। क्योंकि क्या मालूम दूसरी बीवी कैसी होगी और उसके साथ कैसा सलूक करेगी। उसने मुझे पूछा सेक्स की भूख का क्या करते हो।

मैंने कहा दिल तो बहुत करता है और सारी रात जागता रहता हूं। दिल में बहुत दर्द होता है लेकिन सायरा के सामने जाहिर नहीं होने देता। अंदर से बहुत दुखी हूं लेकिन सायरा के सामने खुश रहता हूं। उसने मुझे किसी रंडी के पास जाने को बोला, लेकिन मैंने कहा कोई बीमारी लग सकती है या अगर किसी को मालूम हुआ, तो सायरा को बहुत दुख होगा। मुझे मालूम नहीं था कि सायरा चुपके से सुन रही है।

रात को खाना खाकर मैं अपने रूम में बैठा किताब पढ़ रहा था और सायरा मेरे रूम में दूध लेकर आ गई। उसने अपनी अम्मी की लाल साड़ी पहनी हुई थी, जो मुझे बहुत पसंद थी। वो हमारी शादी की पहली सालगिरह पहन कर मेरे सामने आई थी। वो साड़ी बहुत झीनी है और उसके पल्ले से पेट साफ दिखाई देता है। उसका ब्लाउज़ पीछे से खुला है और आगे से गला बहुत गहरा है।

baap beti ki chudai ki kahani

ब्लाउज़ के पीछे सिर्फ इलास्टिक की दो वारीक पट्टियां हैं औल आगे से बूब्ज़ की गोलाइयां दिखाई देती हैं। सायरा को उस साड़ी में देख कर, एक बार तो मुझे लगा कि मेरे सामने मेरी बीवी खड़ी है। उस दिन मैंने अपनी बेटी के बदन को गौर से देखा। वो बिल्कुल अपनी अम्मी पर गई है। उसके बूब्ज़ मेरी बीवी जितने बड़े हैं, लेकिन गांड उससे बड़ी है। मैं सोच रहा था काश जुनैदा होती, तो उसको चोद देता। सायरा मेरे सामने खड़ी थी, लेकिन अब मुझे वो अपनी बेटी नहीं बल्कि बीवी लग रही थी।

सायरा मेरे बैड पर मेरे पास बैठ गई और कहा, क्या सोच रहे हो पापा? मैंने कहा कुछ नहीं, बस ऐसे ही कुछ याद आ गया था। सायरा ने कहा मुझे मालूम है पापा आपको अम्मी की याद आ रहई है और मैंने हां में सिर हिलाया। मैं चुप करके दूध पीने लगा और जुनैदा के बारे सोचने लगा। सायरा ने मुझे थैंक्यू कहा और मैंने कहा किस बात के लिए। सायरा ने कहा आप ने मेरे लिए बहुत कुर्बानी दी है और आप इतना दर्द दिल में छुपा कर मेरे सामने खुश रहते हो।

मैंने कहा ऐसा कोई दर्द नहीं बेटा मैं खुश हूं। सायरा ने कहा मैंने आपकी और अंकल की सब बातें सुन ली थीं। मैं कुछ बोल नहीं पाया और वो सरक कर मेरे पास आते हुए बोली, पापा जो सुख से आप मेरी वजह से दूर रहे, अब मेरा फर्ज बनता है आपको वो दूं। मैंने कहा ऐसा कौन सा सुख बेटा। सायरा ने कहा औरत का सुख पापा और आप उस सुख के लिए बहुत तड़पे हो।

मैंने सायरा से कहा तुम मेरी बेटी हो, यह गलत है। सायरा ने कहा मैं जानती हूं ये गलत है, लेकिन मैं आपको तड़पता हुआ नहीं देख सकती। पहले मुझे मालूम नहीं था अगर मालूम होता तो आपको दुखी नहीं होने देती। उसने साड़ी का पल्ले को नीचे गिरा दिया और मेरा एक हाथ अपने बूब्ज़ पर रख लिया। मैं हाथ खींचना चाहता था लेकिन बहुत सालों बाद किसी लड़की के कोमल बूब्ज़ का स्पर्श पाकर सब कुछ भूल गया। मैं धीरे-धीरे बूब्ज़ दबाने लगा और मेरा लंड खड़ा हो गया। तभी मुझे होश आया कि सामने मेरी बेटी है, तो मैंने हाथ खींच लिया और उसको डांट कर जाने को बोल दिया। जाते-जाते सायरा ने कहा मेरे रूम का दरवाजा खुला है अगर दिल करे तो आ जाना।

***** ladaki ki chudai

मैंने अपने रूम का दरवाजा बंद किया और बैड पर लेट गया। मुझे नींद नहीं आ रही थी, बार बार सायरा के कोमल बूब्ज़ का स्पर्श याद आ रहा था। आधी रात तक मैं करवटें बदलते सोने की कोशिश करता रहा, लेकिन सब फजूल रहा। मैं उठ कर सायरा के रूम में आ गया। सायरा वही साड़ी पहने लाईट जला कर सो रही थी। साड़ी का पल्ला साईड पर गिरा हुआ था और वो बाईं तरफ करवट लेकर लेटी हुई थी। उसके आधे बूब्ज़ दिख रहे थे और नंगा पेट दुधिया लाईट में चमक रहा था। उसके बदन का नजारा देखकर मेरा लंड खड़ा हो गया और मैं उसके पीछे चिपक कर लेट गया।

मैंने अपना हाथ उसके चिकने पेट पर रखा और मेरा लंड साड़ी के ऊपर से उसकी मोटी गांड पर लग गया। मैंने सोचा कि मैं ऐसे ही मजा लेकर चला जाऊंगा और सायरा को उठने नहीं दूंगा। लेकिन वो पहले ही जाग रही थी। मेरे हाथ का स्पर्श पाते ही वो बोली, मुझे मालूम था पापा कि आप आओगे। मैंने कहा मुझ से रहा नहीं गया बेटा, बहुत सालों बाद किसी लड़की के बदन को हाथ लगाया है।

सायरा ने कहा, आप जो चाहे कर सकते हो पापा। मैंने कहा तुम नंगी होकर मुझे मजा दिया करो। हम एक-दूसरे के बदनों से खेल कर अपनी आग शांत करेंगे। सम लोग एक-दूसरे के बदन को चूमकर गर्म करेंगे। मैं तुम्हारी चूत चाटकर और तुम मेरा लंड चूसकर पानी निकाल दिया करेंगे लेकिन चुदाई नहीं करेंगे। सायरा नए चेहरे पर शरारत भरी स्माईल लाते हुए कहा ठीक है पापा।

मैंने खड़ा होकर अपने कपड़े निकाल दिए और फिर बैड पर लेट गया। सायरा ने खड़ी होकर अपने कपड़े निकाल दिए और खड़ी हो गई। मैं उसका संगमरमरी बदन देखकर पागल होने लगा। उसके बूब्ज़ ऐसे लग रहे थे जैसे आईसक्रीम के दो कपों के ऊपर हल्के गुलाबी रंग की गोल गोल टॉफियां लगी हों। उसका चेहरा जन्नत की हूर जैसा लग रहा था। मुझे लग रहा था कि मुझ से खुश होकर अल्लाह ने मेरे लिए जन्नत की हूर भेज दी हो। मैं सायरा का कामुक बदन देखकर होश भूलने लगा। उसका बदन देखकर लग रहा था, जैसे खुदा ने उसे बहुत फुर्सत में बनाया होगा। उसका एक एक अंग ऐसे तराशा हुआ था, जैसे सेक्स की मूर्ति हो। उसके बड़े-बड़े बूब्ज़ और चूतड़ देखकर मेरे मुंह में पानी आ गया।

सायरा बिल्कुल नंगी होकर मेरे साथ लेट गई और अपने होंठ मेरे होंठों से लगा दिए। उसके होंठ मक्खन जैसे मुलायम और अंगूर जैसे रसीले थे। उसके नर्म और रसीले होंठों का स्पर्श पाकर ही मेरा लंड तन गया। सायरा ने मेरा नीचे वाला होंठ अपने होंठों में लेकर चूसने लगी और मैं मदहोश होने लगा।

मैंने सायरा का सिर जोर से पकड़ लिया और जोर जोर से होंठ चूसने लगा। वो भी जोर से चूस कर मेरा साथ देने लगी। हम एक-दूसरे के मुंह में जीभ डालकर जीभ चूसने लगे और होंठों को काटने लगे। सायरा बहुत गर्मजोशी से मेरा साथ देने लगी। मेरे होंठों को चूसते चूसते वो मेरा लंड हिलाने लगी। बहुत सालों बाद मेरे लंड को किसी लड़की का स्पर्श नसीब हुआ था और मुझे लगा मैं झड़ने वाला हूं।

मैंने ये बात सायरा को बोली, तो उसने मुझे जल्दी से खड़ा कर दिया और लपक कर मेरे लंड को हाथ में ले लिया। सायरा मेरा लंड को तेज़ी से हिलाने लगी और बार बार मेरे लंड के टोपे को चूमती। मैंने जल्दी से अपना लंड सायरा के मुंह में दे दिया और उसके मुंह में धक्के मारने लगा। वो मेरे लंड को ऐसे चूस रही थी, जैसे बहुत बड़ी रंडी हो। मेरा लंड सायरा के मुंह की गर्मी ज्यादा देर नहीं झेल पाया और उसके मुंह में वीर्य उगल दिया। मैं बैड पर बैठ गया और सायरा बाथरूम में मुंह साफ करने चली गई।

मैं बैड पर बैठा अपने मुरझाए लंड को देखने लगा और सायरा के बारे में सोचने लगा। जिस तरीके से वो मेरा लंड चूस रही थी, उससे लग रहा था सायरा बहुत बार चुदाई कर चुकी है। तभी सायरा नंगी मेरे पास बैठ गई और मेरी पीठ सहलाने लगी। मैंने सायरा से कहा बेटी जो मैं तुमसे पूछने जा रहा हूं, उसका सच्च सच्च जवाब देना और मैंने अपनी कसम भी दी।

सायरा ने कहा मुझे आपकी और अल्लाह की कसम है, मैं झूठ नहीं बोलूंगी। मैंने कहा ये बात ऐसी है कि कोई बाप अपनी बेटी से नहीं पूछता। सायरा के चेहरे पर एक मुस्कान सी आ गई और बोली, बाप बेटी का रिश्ता तो उसी वक्त खत्म हो गया था, जब हम दोनों एक-दूसरे के सामने नंगे हुए थे। अब आप मेरे मालिक हो और मैं आपकी रखैल। आप जो पूछना चाहते हो, बेझिझक पूछो और मैं बेझिझक जवाब दूंगी।

मैंने सायरा से पूछा कि क्या तुमने पहले कभी सेक्स किया है, तो उसने हां बोल दिया। मैंने उससे पूछा किस के साथ किया है। उसने कहा, आप गुस्सा हो जाओगे, तो मैंने अल्लाह की कसम खा कर कहा गुस्सा नहीं करूंगा। मुझे लगा सायरा का किसी लड़के के साथ चक्कर होगा, उसके साथ करती होगी लेकिन उसका जवाब सुन कर मैं हैरान हो गया और सोचने लगा कि एक ऐसी लड़की जिसकी शराफ़त की कसम पूरा मुहल्ला खाता है वो इतनी चुद्दकड़ है।

जिस लड़की की मिसाल मुहल्ले वाले अपनी बेटियों को देते हैं, वो इतने मर्दों से चुद चुकी है। उसने बोला पापा मैंने दो प्रोफेसर, कॉलेज के प्रिंसिपल व उसके तीन दोस्त, उसकी कॉलेज की बस के ड्राइवर व कंडक्टर, चार लड़कों और कॉलेज के पास के दो किताबों के दुकानदारों से सेक्स किया है। मुझे एक बार बहुत गुस्सा आया, लेकिन मैंने खुद पर काबू किया। मैंने उससे पूछा कि उसने इतने मर्दों से संबंध क्यों बनाया!

उसने कहा कि पहली बार उसने परीक्षा में ज्यादा नंबर लेने के लिए अपने एक प्रोफेसर से सेक्स किया था। उस प्रोफेसर ने उसको कई बार चोदा और एक दिन उसने अपने साथी प्रोफेसर से उसको चुदवा दिया। थोडे़ दिन बाद ये बात प्रिंसिपल को मालूम हो गई और उसने सायरा को कॉलेज से न निकालने के इवज में चोदा।

 

उसके बाद वो उन तीनों की रखैल बन गई और उसे अलग अलग लंड लेने का चस्का लग गया। जब भी कोई अच्छा मर्द उसको दिखाई देता है तो वो फिसल जाती है। उसकी आग तब तक शांत नहीं होती, जब तक वो उस मर्द से चुदाई नहीं करती। मैं उसकी बातें सुनता हुआ, उसका चेहरा देख रहा था। अब मुझे सायरा में अपनी बेटी नहीं एक गर्म रंडी दिख रही थी, जो मेरा बिस्तर गर्म करने वाली थी।

मैं सायरा के बारे सोचने लगा और मुझे अब समझ आई कि सायरा का प्रिंसिपल उसकी इतनी तारीफ क्यों करता है। मुझे लगा था, मेरी बेटी बहुत लायक है, तभी इतनी तारीफ होती है, लेकिन अब मालूम हुआ कि उसका प्रिंसिपल सायरा के की चूत का दीवाना है, तभी तारीफ करता है। मैं सोचते-सोचते पिछली बातों में खो गया।

जब सायरा ने मेरे मुरझाए लंड को पकड़ कर मेरी गाल को चूमते हुए बोला, क्या हुआ पापा? तब मेरी सोच की लडी़ टूटी। मैंने कहा, कुछ नहीं बेटा सोच रहा था मेरे बेटी कितनी चालू है। इससे पहले मैं कुछ और बोलता, सायरा ने अपने होंठ मेरे होंठों पर रख दिए और मेरा लंड अपने हाथ से हिलाने लगी। मैं अपने होंठों पर सायरा के नर्म व रसीले होंठों का और अपने लंड पर सायरा के कोमल हाथ का स्पर्श पाकर मदहोश होने लगा।

सायरा मेरे होंठों को बहुत प्यार से चूमते हुए मेरे लंड को हिलाने लगी। मैंने अपने हाथों से सायरा के बूब्ज़ पकड़ लिए और उसके होंठों को चूमते हुए सायरा के बड़े-बड़े, गोल, तने हुए और मुलायम बूब्ज़ दबाने लगा। उसकी बदन की गर्मी से मेरा लंड फिर से खड़ा होकर चुदाई के लिए तैयार हो गया। मैंने सायरा का सिर अपनी गोद में रख लिया और हम एक-दूसरे के होंठों को चूमने लगे। हम दोनों काफी गर्म हो गए और एक-दूसरे के होंठों के मुंह में खींच खींच कर चूसने लगे।

तभी सायरा ने अपनी जीभ मेरे मुंह में धकेल दी और मेरी जीभ को चाटने लगी। मैं एक हाथ से सायरा के बूब्ज़ दबाते हुए उसकी जीभ को चूसने लगा। हम दोनों एक-दूसरे के मुंह में जीभ डालकर घुमाने लगे और एक-दूसरे की जीभ का रस चूसने लगे। हम एक-दूसरे के होंठ चूम कर, दांतों से होंठों को काटकर और जीभ को एक-दूसरे के मुंह में डालकर रसपान करने लगे। हम पर इतनी मस्ती छा गई थी कि सब कुछ भूल कर चूमा चाटी कर रहे थे।

सायरा ने मेरी गोद में सिर घुमा लिया और मेरे लंड को मुंह में ले लिया। उसके नर्म रसीले होंठों का स्पर्श पाकर और उसके मुंह कई गर्मी महसूस करके मेरा लंड और भी फड़फड़ाने लगा। मैं सायरा के बूब्ज़ मसलते हुए लंड चुसाई का मजा लेने लगा। मेरी बीवी की मौत के बाद आज मेरा लंड पहली बार किसी लड़की के छेद का मजा ले रहा था वो भी मेरी अपनी चुद्दकड़ बेटी के छेद का। इतने सालों बाद किसी लड़की के मुंह में लंड डालने से मुझे बहुत सकून मिल रहा था। मैंने सायरा को बैड पर लेटा दिया और उसके नाजुक, मुलायम और चिकने पेट को चूमने और चाटने लगा। वो नीचे लेटी हुई मचल रही थी। जब मैं उसकी नाभि में जीभ डालकर चाटने लगता तो सायरा मस्ती में मचलती हुई मेरे बाल नोचने लगती।

अब मैं उसके बूब्ज़ चूसने और दबाने लगा। उसके बूब्ज़ मुझे बहुत सेक्सी लग रहे थे। ऐसा लग रहा था जैसे मैं जन्नत की हूर का मजा ले रहा हूं। मैं अल्लाह का शुक्रिया कर रहा था, जिसने मुझे ऐसी खूबसूरत, सेक्सी और गर्म बेटी दी और अपनी किस्मत पर नाज हो रहा था कि मैं अपनी जवान बेटी के नंगे बदन का मजा लूट रहा हूं। मैं सायरा के बूब्ज़ को जोर जोर से चूसने लगा और सायरा मेरे सिर को अपने बूब्ज़ पर दबाने लगी। मैंने सायरा के निप्पलों को चूसते हुए अपनी एक उंगली सायरा की चूत में घुसा दी।

सायरा मस्ती से चहक उठी और वो मेरे सिर को अपने बूब्ज़ पर दबाते हुए अपनी गांड उठा उठाकर उंगली चूत में लेने लगी। मैं सायरा की चूत में उंगली हिलाते हुए उसके बूब्ज़ व निप्पलों को दांतों से काटने लगा। मेरे चूसने और काटने से सायरा के बूब्ज़ पर लाल निशान बन गए लेकिन उसको बहुत मजा आ रहा था।

मैं सायरा के ऊपर 69 अवस्था में लेट गया। मेरा मुंह सायरा की चूत के ऊपर था और मेरा लंड सायरा के होंठों पर टकरा रहा था। मैंने सायरा की भरी हुई जाघों को खोलकर उसकी चूत फर मुंह रख दिया। सायरा मेरे लंड के टोपे पर जीभ घुमाने लगी और बहुत सेक्सी तरीके से चाटने लगी। मुझ से कंट्रोल नहीं हो रहा था और मैंने लंड नीचे दबा दिया। मेरा लंड सायरा के होंठों से टकराता हुआ उसके मुंह में घुस गया। मैं अपनी जीभ सायरा की चूत में घुसा कर चाटने लगा और सायरा अपना सिर ऊपर-नीचे कर के मेरे लंड को चूसने लगी।

सायरा अपनी गांड चलाने लगी और अपनी चूत मेरे मुंह पर रगड़ने लगी। मैं अपनी गांड ऊपर-नीचे करके सायरा का मुंह चोदने लगा। जब मैं लंड नीचे दबाता तो मेरा लंड सायरा के मुंह से होता हुआ उसके गले में उतर जाता। वो बहुत आसानी से लंड को गले में उतार लेती। मैं सपड़ सपड़ उसकी चूत चाट रहा था और सायरा के मुंह में लंड अंदर-बाहर होने से गप्प गप्प की आवाज़ आ रही थी। हम दोनों सातवें आसमान पर थे।

मैंने सायरा को बैड पर सीधा लेटे रहने दिया और उसकी गांड के नीचे तकिया लगा दिया। मैंने सायरा की टांगें उठाकर अपने कंधों पर रख लीं और अपना लंड उसकी चूत पर लगा दिया। मैं अपना लंड सायरा की चूत पर रगड़ने लगा और वो मचलने लगी। उसकी चूत पर कुछ देर लंड रगड़ने के बाद सायरा की चूत गीली हो गई और वो लंड अंदर डालने को कहने लगी। मैंने अपने लंड को सायरा की चूत के छेद पर रखकर दबा दिया।

मेरे झटके से आधे से ज्यादा लंड सायरा की चूत में चला गया और दूसरे झटके से मेरा लंड फिसलता हुआ जड़ तक अंदर बैठ गया। जैसे ही मेरा लंड सायरा कई चूत की गहराई में उतरा उसके मुंह से कामुक आहह निकली और मेरे लंड में एक मिठास सी भर गई। मुझे बहुत सालों बाद चूत नसीब हुई थी और मुझ पर अजीब सा नशा छा रहा था। मैंने अपनी बीवी को बहुत चोदा था, लेकिन उसकी चूत में लंड डालने का कभी इतना मजा नहीं आया था, जितना सायरा की चूत में डालकर आ रहा था।

उसकी चूत एकदम टाईट थी लग नहीं रहा था कि वो इतनी चुदी हुई है। मैंने अपना लंड बाहर खींचा और फिर से अंदर डाल दिया। इस बार उसके मुंह से सेक्सी आवाज़ निकली। मैं जोर जोर से सायरा की चूत चोदने लगा और उसके बड़े-बड़े बूब्ज़ मेरे झटकों के साथ हिलने लगे। सायरा अपने हिलते हुए बूब्ज़ को पकड़ कर दबाने लगी और उसका चेहरा चुदाई के नशे से चहक रहा था। मेरे लंड के अंदर-बाहर होने से सायरा की चूत बिल्कुल गीली हो गई और फच्च फच्च की आवाज़ें आने लगीं। हम दोनों अपने रिश्ते से बेखबर हो कर चुदाई का आनंद ले रहे थे।

मैंने सायरा को उल्टा लेटा कर उसकी पेट के नीचे तकिया लगा दिया, जिससे उसकी चूत ऊपर उभर आई। मैंने सायरा की टांगें खोलकर उसकी चूत पर लंड लगा दिया और उसके कंधों को कस को पकड़ लिया। मैंने झटका मारकर अपना लंड सायरा की चूत में घुसा दिया और चूत चोदने लगा। चूत में लंड का अंदर-बाहर होना और सायरा के नर्म चूतडो़ं का स्पर्श मुझे अजीब सी मदहोशी दे रहा था। मैं दनादन झटके मारकर अपनी सगी बेटी को मस्ती से चोदने लगा और सायरा भी बड़ी गर्मजोशी से अपने सगे बाप का लंड ले रही थी। मेरे हर झटके से सायरा के मुंह से कामुक आहें निकलती और मेरा जोश और भी बढ़ जाता। जब सायरा मस्ती में चिल्लाती तो मैं जोश में आकर और भी तेज़ी से उसकी चूत चोदता।

मैं सायरा को चोदते हुए हांफने लगा, तो सायरा ने मुझे नीचे लेटा दिया। वो मेरे ऊपर आ गई और मेरी छाती को जीभ से चाटते हुए मेरे निप्पलों को मुंह में भर कर चूसने लगी। उसने अपनी चूत मेरे लंड पर टिका दी और दोनों हाथ मेरी छाती पर रख दिए। सायरा ने मेरे दोनों हाथ अपने बूब्ज़ पर रखकर अपनी गांड नीचे धकेल दी और मेरा लंड फिर से सायरा की चूत की गहराई की सैर करने लगा। सायरा उछल उछल कर मेरा लंड अपनी चूत के अंदर-बाहर करने लगी और मैं उसके बूब्ज़ मसलने लगा।

सायरा बहुत तेज़ी से उछलने लगी और चूत चुदाई का मजा लेने एवं देने लगी। मैं अपने रंग में आ गया और नीचे से सायरा की चूत चोदने लगा। हम दोनों के झटकों से चुदाई की रफ्तार बहुत तेज हो गई। चुदाई की फच्च फच्च की आवाज़ों और हमारी उत्तेजित आवाज़ों से पूरा माहौल चुदाई के रंगों से रंगीन हो गया। सायरा चूत से लंड निकाले बगैर घूम गई और मेरे पैरों की तरफ अपना मुंह कर लिया। वो मेरी टांगों को पकड़ कर अपनी गांड उछालने लग गई और मैं नीचे से उसकी चूत चोदते हुए सायरा के चूतडो़ं को थपथपाकर चूतडो़ं की नर्मी का अहसास लेने लगा।

मैंने सायरा को बैड से नीचे उतारा और बैड के सहारे झुका कर खड़ी कर दिया। मैंने पीछे से उसकी कमर को पकड़ कर अपना लंड उसकी चूत पर टिका दिया। इससे पहले मैं अपना लंड सायरा की चूत में डालता, सायरा ने बहुत तेज़ी से अपनी गांड को पीछे धकेल दिया और मेरा लंड फचाक की आवाज़ से चूत में उतर गया। मैं सायरा की चूत पीछे से चोदने लगा और सायरा अपनी गांड को आगे पीछे कर के लंड अपनी चूत के अंदर-बाहर करने लगी।

मैंने सायरा के रेशमी बाल पकड़ लिए और बहुत तेज़ी से उसकी चूत चोदने लगा। कुछ देर बाद सायरा का बदन अकड़ने लगा और वो ठंडी आंहें भरती हुई झड़ गई। मैं भी चर्म पर पहुंच चुका था और अपना लंड सायरा की चूत से निकाल लिया। मैंने अपना वीर्य सायरा की गांड पर गिरा दिया, जो नीचे जाता हुआ सायरा की जांघों पर फैल गया। मैंने टॉवेल से सायरा के बदन से वीर्य साफ किया और हम नंगे ही लेट गए।

मुझे आज पहली बार चुदाई का असली सुख मिला, क्योंकि मेरी बीवी ने कभी मेरा लंड नहीं चूसा था और न ही कभी अपनी चूत चाटने दी थी। वो सिर्फ नीचे लेट कर ही चुदाई करवाती थी और कोई अवस्था पसंद नहीं थी। इसके बाद मैं और सायरा रोज चुदाई करते हैं और मैंने उसकी चूत के साथ साथ उसकी गांड का सुख भी लेता हूं। सायरा भी बहुत उत्तेजित होकर मुझ से चूत और गांड चुदाई करवाती है।


अप्पी को झाड़ियों में जबरदस्ती चोदा

अप्पी को झाड़ियों में जबरदस्ती चोदा हमारा समर वॅकेशन चल रहा था, छुट्टी के शुरु होते ही हम सब दोस्तों ने जंगल में पिकनिक का प्लान बनाया। जिस दि...
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#11
Part 8



पाकिस्तानी लड़की के साथ सेक्स की कहानी


pakistani ladki ke sath sex ki kahani





मेरी उमर 26 साल है। मैं एक अमेरिकन कंपनी में क़तर में काम करता था। अब मेरी पोस्टिंग यहाँ कुवैत में हो गई है।

कुवैत में ऑफिस के पहले दिन मैं सबसे मिला लेकिन वहाँ पर एक लड़की थी, एकदम गोरी, बदन ऐसा कि दिल करे अभी उसे चोद दे।

जब लंच टाइम हुआ तो उसने मुझे कहा- आप भी खाना खा लो !

तो मैंने उसके साथ खूब बातें की और मैंने उसको पूछा- तुम कहाँ से हो?

उसने बताया कि वो पाकिस्तान से है, उसकी उमर 26 साल है और नाम सदफ खान !

वो अपने परिवार के साथ कुवैत में रहती थी।

दोस्तो, अब हम कहानी पर आते है कि मैंने उसे कैसे चोद दिया।

उस दिन शुक्रवार था, मैं नेट पर बैठा हुआ था तू वो (सदफ) भी ऑनलाइन आ गई। उसने मुझसे पूछा- तुम कहीं घूमने नहीं गए? आज छुट्टी है, कहीं बाहर घूमने चले जाते ! वैसे भी तुम नए हो कुवैत नहीं देखा तुमने।

मैंने उसे कहा- मेरा कोई दोस्त नहीं है यहाँ पर ! नई जगह में मैं किसी को जानता नहीं !

तो उसने कहा- मैं हूँ ना आपकी दोस्त ! आप मेरे साथ चलो घूमने !

मैंने उसे हाँ कर दी। उसने मुझे एक माल में बुलया और फटाफट तैयार होकर मैं वहाँ चला गया। हम लोग शाम को चार बजे तक घूमे।

फिर उसने कहा- आज भारत-पाकिस्तान का मैच है,मुझे बहुत शौक है मैच देखने का !

तो मैंने कहा- मेरे कमरे पर चलते हैं, वहाँ बैठ कर मैच देखेंगे।

वह राज़ी हो हो गई। मेरा कमरा मुझे कंपनी की तरफ से मिला था। हम वहाँ पहुंच कर मैच देखने लगे।

उसने अचानक चैनल बदल दिया तो उसमें एक लड़का लड़की को चूम रहा था और फिर उसके कपड़े उतार कर उसे चोदने लगा। वो यह देख कर कुछ शरमा सी गई और मेरी तरफ देखने लगी।

मैंने कहा- तुमने कभी किया है यह सब?

तू उसने कहा- उसका बॉय फ्रेंड था लेकिन सेक्स नहीं किया, किस किया था उस के साथ।

मैं उसके पास जा कर बोला- कभी दिल करता है सेक्स करने का ?

तो वो शरमा गई और कहने लगी- मैं चलती हूँ अब ! अम्मी इंतज़ार कर रही होगी !

मैंने कहा- तुमने जवाब नहीं दिया ?

तो वो अचानक मेरे सीने से चिपक गई और बोली- प्यासे को पूछ रहे हो कि पानी चाहिए?

बस मुझे यह मौका मिला और मैं उसके होंठों पर अपने होंठ रख कर चूसने लगा। काफ़ी देर तक चूसने के बाद उसने मेरी शर्ट खोल दी और मैंने उसकी टी-शर्ट उतार फेंकी। अब मैं अंडरवीयर में था और वो ब्रा और पैंटी में थी। अब मैंने उस की ब्रा और पैंटी को भी उतार फेंका और उसने मेरा अंडरवीयर उतार फेंका। अब हम दोनों एक दम नंगे थे मैंने उसे मेरा लंड चूसने को कहा तो उसने लण्ड मुँह में ले लिया। कुछ देर चूसने के बाद मैंने उसे बिस्तर पर लेटने को कहा और टाँगें चौड़ी करने को कहा। उसने वैसा ही किया तो उसकी चूत एकदम मेरे सामने थी- एकदम गुलाबी और मस्त !



मैं पागल की तरह उसकी चूत पर टूट पड़ा और चाटने लगा। मैंने काफ़ी देर उसकी चूत चाटी। वो पागलो की तरह करने लगी- आआऽऽ आआआह उईईईईई ई आइऽऽऽ

फिर उसने धीरे से कहा- अब चोद दो मुझे ! मुझे चोद कर अपनी बना लो !

मैंने अपना लंड उसकी चूत पर रखा और हल्का सा धक्का मारा तो लंड का टॉप उसकी चूत में चला गया।

वो चीख पड़ी, मैंने जल्दी से अपने होंठ उसके होंठों पर रखे फिर मैंने उसे समझाया- तुम कुंवारी हो न ! इस लिए दर्द हो रहा है !

तो उसने कहा- कुछ करो ! बर्दाश्त नहीं हो रहा ! बहुत दर्द हो रहा है।

मैं उसके ऊपर से उठा और लण्ड पर तेल लगा कर फिर उसकी चूत में डाला तो लंड एक धक्के के साथ आधा अन्दर चला गया। फिर वो चीखी लेकिन इस बार मैंने जल्दी से होंठ लगा दिए और हल्के- हल्के धक्के मारने लगा। लगा कि उसका दर्द भी कम होने लगा और वो भी गांड उछाल उछाल के मजे लेने लगी। काफ़ी देर ऐसे करने के बाद मैंने उसे अपने ऊपर आने को कहा तो वो फटाफट ऊपर आ गई और गांड उछाल उछाल कर धक्के मारने लगी। उसकी गांड काफी बाहर निकली हुई थी।

फिर मैंने उसे कहा- घोड़ी बन जाओ ! मुझे ऐसे चोदना है तुम्हें !

तो वो मस्त आवाज़ में आआऽऽ आआअह उईईईई करके मजे लेते हुए घोड़ी बन गई। जैसे ही वो घोड़ी बनी, मैं उसकी चिकनी चूत में लंड डाल कर धक्के मारने लगा और वो मस्त आवाजें निकालने लगी।

उसने कहा- मैं जाने वाली हूँ ! मेरी चूत से पानी निकल रहा है ! उईईईन आआआअह ईईईईह ऊईऽऽ माऽऽ आई लव ऊऊऊऊऊ !

वो झड़ गई और मैंने अपने धक्कों की स्पीड बढ़ा दी और तब मैंने उसे कहा- पहले लंड का पहला पानी लेने के लिए तैयार हो जाओ !

और मैंने दो और झटके मारे और पानी उसकी चूत में डाल दिया। फिर उसने लंड को चाट कर साफ़ किया और हम दोनों नहाने चले गए।

इस तरह हम दोनों की चुदाई का सिलसिला कई महीनों तक चलता रहा। मैंने कई दफा उसकी गांड भी मारी।

लेकिन दोस्तो, अब मैं वापिस भारत आ गया हूँ क्यूँकि मेरी कंपनी अब मुझे कनाडा भेजने वाली है। वो नेट पर मेरे से बात करती है और मुझे याद करती है।
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#12
पार्ट 8




***** samaaj me chudai ka majaa nirala


,., समाज में चुदाई का मज़ा





एक बात तो है बेटी खुशबू की ,., समाज में चुदाई की जितनी आज़ादी है उतनी आज़ादी किसी और समाज में नहीं है। हमारे यहाँ जब लड़का जवान हो जाता है तो  वह किसी को भी चोदने के लिए आज़ाद हो जाता है और लड़की जब जवान हो जाती है तो वह भी किसी से भी चुदवाने के लिए आज़ाद हो जाती है। सबसे बड़ी बात यह है इस समाज में चुदाई में कोई नाता रिस्ता नहीं माना जाता। इनका कहना है की चुदाई में एक ही रिस्ता होता है और वह है लण्ड और चूत का रिस्ता। न लण्ड पर कोई रिस्ता लिखा होता है और न चूत पर।  लण्ड जब खड़ा  होता है तो वह किसी की भी चूत में घुस सकता है। उसे जायज़ माना जाता है और इसी तरह चूत जब चुदासी हो जाती है तो वह किसी का भी लण्ड अपने अंदर पेलवा सकती है, उसे भी जायज़ माना जाता है। मेरा नाम खुशबू है और मेरीअम्मी जान मुझे ये बातें बता रहीं थी जब मैं पूरी तरह जवान हो गयी थी।  मैं 19 साल की थी।  अम्मी जान को यह मालूम हो गया था की मैं भी  लण्ड पकड़ने लगी हूँ, लण्ड का थोड़ा थोडा मज़ा लेने लगी हूँ तो उसने मुझसे कहा बेटी अब तुम बच्चो के साथ नहीं बल्कि यहाँ फर्श पर हम सबके साथ सोना शुरू कर दो। मैंने वैसा ही किया और दो दिन तो मुझे कुछ पता ही नहीं चला क्योंकि मैं रात भर  घनघोर तरह से सोती रही। लेकिन तीसरे दिन मेरी नींद रात में खुल गयी।

मैंने जो देखा वह तो मुझे मस्त करने वाला था।  मुझे अम्मी जान की बात बिलकुल  सही मालूम पड़ रही थी। मैंने बड़ी हैरानी से देखा की मेरा अब्बू जान तो एकदम नंगे नंगे मेरी भाभी जान के ऊपर चढ़े हुए थे।  भाभी जान भी एकदम नंगी टी और अब्बू उसे दनादन चोदे जा रहा था।  में मन  वाह !  ही बहू की बुर चोद।   बात है ! इस तरह की चुदाई तो वाकई बड़ी मजे दार है।   उधर मैंने देखा की मेरा भाई जान मेरी खाला के भोसड़ा में लण्ड पेले हुए है। वह खाला का भोसड़ा चोद रहा है और खाला जान भी ऐसे चुदवा रहीं हैं  जैसे की वह मेरा भाई नहीं बल्कि उसका अपना शौहर हो। मुझे दोनों लण्ड तो पूरी दिखाई नहीं पड़े लेकिन यह जरूर मालूम हो गया की यहाँ किसी को  किसी से कोई शर्म नहीं है।  दूसरी तरफ देखा की मेरी अम्मी जान भी मस्ती से मेरे खालू से चुदवा रहीं हैं।  खाला जान अम्मी का भोसड़ा पागलों की तरह चोद रहा था।  अम्मी को भी किसी तरह की कोई शर्म नहीं थी बल्कि वह खुद ही उछल उछल कर चुदवाने का मज़ा ले रहीं थीं। खाला का बेटा भी हमारे साथ लेता था।  उसने हाथ बढाकर मुझे पकड़ लिया।  मैं भी यह सब देख कर बुरी तरह गरम हो गयी थी और जबरदस्त चुदासी हो चुकी थी।  मैं भी उससे चिपका गयी।  उसने मेरे कपड़े उतारे और मेरी चूँचियाँ दबाने लगा।  मेरी चूत पर हाथ फिराने लगा और मैं उसका लौड़ा पकड़ कर हिलाने लगी।  लौड़ा भी मादर चोद बड़ा लम्बा भी था और मोटा भी।

मैंने देखा की अम्मी जान मुझे देख रहीं हैं और उसने मुझे आगे बढ़ने का संकेत दिया। इससे मेरी हिम्मत बढ़ गयी और मैंने उसका लौड़ा अपने मुंह में ले लिया। मैं लण्ड चूसने लगी और वह मेरी चूत चाटने लगा।  न उसे किसी की शर्म और न मुझे किसी की शर्म।  मैंने मन में सोंचा की जब सब लोग मादर चोद चोदा चोदी कर रहे हैं तो फिर मैं क्यों न करूं ?  मैं क्यों पीछे रहूं ? मैं भी अब जवान हूँ।  मैं भी सबके सामने खुल्लम खुल्ला लण्ड का मज़ा लूटूँगी और एन्जॉय करूंगी।  कुछ देर बाद उसने लण्ड मेरी चूत पर टिकाया और एक धक्का मारा तो लण्ड अंदर घुसने लगा।  चूत तो मेरी टाइट थी ही तो थोड़ा दर्द तो हुआ और मैं चिल्ला भी पड़ी।  उई अल्लाह मर गयी मैं।  फट गयी मेरी चूत।  इसने फाड़ डाला मेरी बुर. हाय रे अब क्या होगा ? तब तक अम्मी जान बोली चुप रह भोसड़ी की।  अभी सब ठीक हो जायेगा और सच में ठीक हो भी गया।  मुझे मज़ा आने लगा और तब मैं भी उचक उचक कर चुदवाने लगी।
सबके साथ चुदवाने का मज़ा कुछ और ही होता है।  मुझे जितना मज़ा अपनी बुर चुदवाने में आ रहा था उतना ही मज़ा सबकी चुदाई देखने में आ रहा था।  मन कर रहा था की रात और लम्बी हो जाए ताकि ये सामूहिक चुदाई  बड़ी देर तक चली रहे और आज ही मुझे सबके लण्ड अपनी बुर में पेलने का मौक़ा मिले।  मैं अब तक इतनी बेशर्म हो चुकी थी की मैं सबके लण्ड अपनी बुर में पेलना चाहती थी।  अब्बू का लण्ड , भाई जान का लण्ड , खालू जान का लण्ड, भाई जान के तिन दोस्त राज ,करण और सुशांत का लंड और भी जो लोग घर आएं उन सबके लण्ड का मज़ा लूटना चाहती थी।  मैंने सोंच लिया  चलो अगर आज नहीं तो कल से मैं एक एक करके सबके पेलूँगी अपनी चूत में।  अब मुझे कोई डर तो है नहीं कोई शर्म तो है नहीं।  अब तो मैं एक रंडी से भी ज्यादा बेशरम, बेहाया और छिनार हो चुकी हूँ।  मैं जवानी का पूरा पूरा मज़ा लूंगी।  बाकी दुनिया की माँ का भोसड़ा।

एक मजेदार बात आपको बता रही हूँ। आपको मालूम है की यहाँ मेरी खाला जान चुदवा रहीं हैं ।  खाला जान के बेटा भी चोद रहा है और खालू भी चोद रहा है।  यानी पूरी फॅमिली एक साथ चोदा चोदी कर रही है।  बस खाला जान की बहू नहीं हैं इस महफ़िल में।  यानी खाला के बेटे की बीवी नहीं है।  तो मैंने उससे पूंछ ही लिया यार ये बताओ की तेरी बीवी हमारे साथ क्यों नहीं है।  उसने बड़े जोश में आकर पहले तो मेरी चूत में २/३ धक्के कस कस के धक्के लगाए और फिर बोला वह बुर चोदी मेरे दोस्त अभिषेक से चुदवाने गयी है। मैंने कहा अच्छा तो यह बात है। तेरी बीवी किसी और से चुदवाती है और तू किसी और को चोदता है।  उसने कहा यार मैं अपने दोस्तों के साथ बीवियां अदल बदल कर चोदता हूँ।  कल मैंने उसकी बीवी चोदी थी तो आज वह मेरी बीवी चोद रहा है।  कल मेरी बीवी किसी और दोस्त से चुदवाने जाएगी और मैं किसी और दोस्त की बीवी चोदूंगा।  हम सब लोग इसी तरह मज़ा लेते है और हमारी बीवियां भी इसी तरह खूब मस्ती करतीं हैं और एन्जॉय करतीं हैं। हम लोग भी खुश और हमारी बीवियां भी खुश।
बात करते करते ही चुदाई के पार्टनर बदल गए। मेरी नज़र भाई जान के लण्ड पर टिक गयी , मुझे लण्ड बड़ा मस्त लग रहा था और तब मेरा दिल उस पर आ गया , मैंने हाथ बढ़ाया और उसका लण्ड पकड़ लिया। मैं मजे से लण्ड का सुपाड़ा चाटने लगी।  तब मेरी खाला के बेटे ने अपना लण्ड मेरी अम्मी जान को पकड़ा दिया। अम्मी ने लपक कर लण्ड ऐसे पकड़ा जैसे की वह खुद ही उससे चुदवाने के लिए बेताब थीं।  जो लण्ड अभी तक मेरी बुर चोद रहा था वही लण्ड अब मेरी अम्मी का भोसड़ा चोदेगा।  उधर अब्बू ने लण्ड खाला जान के भोसड़ा में पेल दिया। खाला जान भी बड़े मजे से चुदवाने लगीं।  उसके मन में था देखो मेरा भोसड़ा खुला है जिसका मन हो वो लण्ड पेल दे अपना और चोद ले मेरा भोसड़ा ।  मैं सबसे चुदवाने के लिए तैयार हूँ।  मेरी भाभी जान मेरे खालू की तरफ बढ़ीं और उसका लण्ड पहले तो अपने मुंह में पेला और मस्ती से चूसने लगीं।  पेल्हड़ भी चाटने लगी और फिर अपने टांगें फैलाकर लण्ड अपनी चूत में घुसा लिया।  उसे भी अपने खालू ससुर से चुदवाने में मज़ा आने लगा।  तो ये सब और इस तरह से चुदाई की मस्ती ,., समाज में भी संभव है. पूरा कमरा साला चुदाई की आवाज़ से गूंजे लगा और हम सबको ये आवाज़ बहुत ही पसंद है।
ये सामूहिक चुदाई करीब सुबह 3 बजे ख़तम हुई और तब हम सब सो गए।

दूसरे दिन मैंने अपनी खाला के बेटे से पूंछा यार ये बताओ क्या तुमने कभी अपनी माँ का भोसड़ा चोदा है  
वह बोला हां हां चोदा है। बिलकुल चोदा है।  
अच्छा तो कैसे चोदा और कब चोदा ?
उस दिन मैं सच्च्ची में अपनी फूफी की बेटी की बुर ले रहा था।  मैं भी चोदने में जितना मस्त था उतनी वह भी चुदवाने में मस्त थी।  तभी अचानक मेरी अम्मी जान कमरे आ गईं।  न मैंने उसे देखा और न उसने।  वह थोड़ी देर तक मेरी चुदाई देखतीं रहीं।  फिर अचानक उसने मेरा लण्ड पकड़ लिया।  मैंने देखा की ये तो मेरी अम्मी जान है तो लण्ड साला सिकुड़ गया। मैं भी थोड़ा सकपका गया और कहा सॉरी अम्मी जान।  वह बोली नहीं बेटा इसमें सॉरी की कोई बात नहीं है। ये तो मेरे लिए ख़ुशी की बात है।  आज मुझे मालूम हो गया की मेरा बेटा भी जवान हो गया है।  उसका लण्ड भी जवान हो गया है। तू भी मर्द बना गया है बेटा और तेरा लण्ड भी मर्द बन गया है. मैं तो कहती हूँ तुम अब जिसको चाहो उसको बेधड़क चोदो। बेटा जब मर्द बन जाता है तो और सारे मर्दों की तरह हो जाता है और हम औरतें उससे चुदवाने में कोई शर्म नहीं करतीं। ऐसा कह कर अम्मी ने मेरा लण्ड उसकी चूत में फिर घुसा दिया।  
पर तूने ऐसे में अपनी अम्मी तो नहीं चोदी न ?  
अरे यार सुनी तो । उसी रात को अम्मी ने मुझे सबके साथ चुदाई करने में शामिल कर लिया।  पहले मैं अपनी भाभी की बुर चोदने लगा और मेरे चचा जान मेरी अम्मी का भोसड़ा चोदने लगा।  कुछ देर बाद भाभी जान मेरा लण्ड पकड़ कर अम्मी के चूत में पेल दिया और चचा जान का लण्ड अपनी चूत  में पेल लिया।  मेरा भी लण्ड ताव पर था और अम्मी का भोसड़ा भी गरमागरम था तो मैंने भी घुसा दिया लण्ड। फिर मैं चोदने लगा उसे और वह भी बिना हिचक चुदवाने लगीं.
बहुत हरामजादे तो तुम भोसड़ी के ? ,,,,,,,,,,

एक दिन मैं अपनी सहेली माहिरा के घर चली गयी।  मैं उसकी अम्मी से मिली। मैंने उससे पूंछा आंटी जी माहिरा कहाँ हैं ?   वह बोली सच बताऊँ खुशबू, माहिरा तो मेरे बेटे और उसके दोस्त अमित से अपनी सहेली फातिमा को चुदवाने ऊपर कमरे में गयी है। मुझे थोड़ी हैरानी हुई तो मैंने खुल कर पूंछा आंटी जी आप सच कह रही है ? क्या ऐसा भी होता है ?  यानी आपका बेटा और उसका दोस्त अमित अपनी बहन के सामने किसी और लड़की को चोदेगा और अमित भी और यह बात आपको मालूम है ?   वह बोली हां तो क्या हुआ ? देखो खुशबू शायद तुम्हे अच्छी तरह हमारे समाज के बारे में मालूम नहीं है . हमारे यहाँ बड़ी नजदीकी रिश्तों में शादियां हो जातीं  हैं। आज का भाई जान कल  शौहर हो जाता है।  जो आज  मेरी बेटी है वह कल हमारी बहू बन जाती हैं।  हमारी कभी नन्द हो जाती है कभी मैं उसकी नन्द हो जाती हूँ वह मेरी भाभी हो जाती है।,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,


इसलिए हमारे यहाँ चोदा चोदी का रिस्ता हमेशा बना ही रहता है।  वैसे भी हम लोग चुदाई में कोई पाबन्दी नहीं लगातीं।  कोई रोक टोक नहीं होती।  हां बस जबरदस्ती किसी के साथ नहीं होनी चाहिए।  यहाँ तो भाई अपनी बहन चोद लेता है तो कोई गुनाह नहीं है।  माँ अपने बेटे से चुदवा लेती है तो कोई गुनाह नहीं है । बेटी अपने बाप का लण्ड पकड़ लेती है तो कोई गुनाह नहीं है।  ये सब चलता है।  चुदाई में कोई रिस्ता न होता है और न माना जाता है। चुदाई तो बस लण्ड और चूत का खेल है बस ? अब देखो न  शादी होते भी रिश्ते भी बदल जातें हैं। कभी कभी तो बाप भी देवर बन जाता है।  ऐसे में भाभी तो अपने देवर से चुदवायेगी ही।  देवर अगर भाभी को नहीं चोदेग तो किसे चोदेगा ? चोदने की इस तरह की आज़ादी दूसरे समाज में यह नहीं होता।  अब माहिरा की सहेली सिया ,., की है। बिचारी भद्दर जवान है। अब उसे लण्ड न घर में मिल रहा है और न कहीं बाहर ?  तो मेरी बेटी ने कहा तुम मेरे घर  आ जाओ मैं तुम्हे अपने भाई जान और उसके दोस्त से चुदवा देती हूँ। मैंने कहा तो मैं वहां जा सकती हूँ न आंटी जी ? वह बोली हां हां बिलकुल जा सकती हो मैं तो कहती हूँ की तुम भी मेरे बेटे और उसके दोस्त से चुदवा लो।  बड़ा मज़ा आएगा तुझे।  मैं बस सीधे उसके कमरे में पहुँच गयी।

मैंने देखा की माहिरा एकदम नंगी बैठी हुई अपने भाई जान के लण्ड के पेल्हड़ सहला रही है।  वह लड़की उसके अमित का लण्ड मुंह में लेकर बड़ी मस्ती से चूस रही है और भाई जान उसकी लड़की की चूत सहला रहा है।  ये सब देख कर मैं भी उत्तेजित हो गयी।  मुझे देख कर माहिरा बोली अरे खुशबू तू भोसड़ी की कब आ गयी ?  वह बोली अच्छा लो इससे मिलो ये है फातिमा मेरी पक्की सहेली।  ये बिचारी बहुत चुदासी है।  आज मैं अपने भाई जान और अमित जी का लण्ड पेलना चाहती हूँ।  पर अब तू।   मैं चाहती हूँ की तू फातिमा की बुर में मेरे अमित् भाई जान का लण्ड पेल दे। उसके बाद फातिमा भी इसका लण्ड तेरी बुर में पेल देगी ? मैंने कहा अच्छा तू क्या बैठी बैठी अपनी झांटें गिनेगी मादर चोद,  माहिरा ?  वह बोली नहीं यार मैं तो अपने भाई जान और अमित से कई बार चुदवा चुकी हूँ और आगे भी  चुदवाती रहूंगी क्योंकि ये तो मेरे घर का लण्ड है जब चाहूंगी तब पेल लूंगी।  पर तुम्हारे लिए ये दूर की बात है तो तुम लोग आज इसके लण्ड का फायदा उठा लो।  वैसे मैं भी किसी दिन फातिमा के भाई लण्ड अपनी बुर में पेलूँगी और फिर उसे अपनी अम्मी के भोसड़ा में भी पेलूँगी।  उसे भी नये नये लण्ड का मज़ा लेना आता है। मेरी अम्मी बुर चोदी मुझसे ज्यादा चुदक्कड़ हैं।

मैं फिर फातिमा की चुदती हुई बुर देखने लगी। कुछ देर बाद सच में माहिरा ने लण्ड मेरी चूत में घुसाते हुए कहा लो खुशबू यार तुम भी मज़ा ले लो मेरे भाई जान के लण्ड का ।  मैं भी असल में चुदासी थी तो चुदवाने लगी।  वह हम दोनों की बुर लेने लगा।   कभी अमित फातिमा क़ी बुर में पेलता लण्ड कभी उसका भाई जान मेरी बुर में ? कभी मेरे मुंह में अमित पेलता लण्ड कभी माहिरा का भाई उसके मुंह में।  माहिरा वास्तव में अपनी भाईजान और अमित का लण्ड देखने में लगी थी की कैसे वह दो लोग दो बुर चोद चोद कर गुर्रा रहा था।  मुझे उस दिन की चुदाई बड़ी मजेदार  लगी।
एक दिन मेरे मन में आया की चलो देखें की फूफी जान के घर में ये सब कैसा होता है ? अलग अलग चुदाई होती है की एक साथ ? कौन किसको चोदता है कौन किससे चुदवाती है।  किसको किसका लण्ड पसंद है और किसको किसकी बुर ? यह सब जानने के लिए मैं एक दिन सीधे फूफी जान के घर पहुँच गयी।  इत्तिफाक से फूफी जान घर पर नहीं थीं पर उसकी बेटी रफ़ा थी। उससे मुलाकात हुई तो वह बहुत खुश हुई और मैं भी।  तब उसने बताया की वह कल ही अपनी ससुराल से आयी है और यहाँ वह अपने ससुर असलम और नन्द रिया के साथ आयी है।  मैं उन दोनों से भी मिली तो बहुत अच्छा लगा।  मैं मदीन फूफा से तो पहले मिल ही चुकी थी। रफ़ा का तब तक जीजू  सलीम भी आ चुका था।  हां अफ़सोस इस बात का था न तो फूफी जान मिलीं और न ही रफा का शौहर ?
रात को मैंने देखा की यहाँ भी सब एक साथ ज़मीन पर ही सोते हैं।  तो मेरा भी बिस्तर वहीं लग गया। सबकी तरह मैं भी लेट गई। मेरे बगल में ही फूफी की बेटी रफ़ा लेटी हुई थी।

थोड़ी देर के बाद उसने अपना हाथ धीरे धीरे अपने ससुर की तरफ बढ़ाया।  मैं पहले तो समझ नहीं पाई लेकिन जब उसने अपने ससुर के पजामा का नाड़ा खोला तो मैं समझ गयी।  उसने  नाड़ा खोल कर हाथ अंदर घुसेड़ दिया।  मैं जान गई की रफ़ा बुर चोदी अपने ससुर का लण्ड पकड़े हुए हिला रही है।  तब वह मेरे कान में बोली हाय दईया बहुत बड़ा लण्ड है मेरे ससुर का खुशबू।  खुदा कसम आज तो मज़ा आ जायेगा। तू मेरे जीजू का लण्ड पकड़ ले खुशबू।  तुझे भी मज़ा आएगा। मैंने भी हाथ बढ़ाया और उसका लण्ड लुंगी से बाहर निकाल लिया।  उधर फूफा जान भी आगे बढ़ा और रफ़ा की नन्द को अपने बदन से चिपका लिया।  उसके कपड़े उतार कर उसे नंगी  करने  लगा।  वह एक मिनट में ही नंगी हो गयी।  उसने भी बेशर्मी से फूफा का लण्ड पकड़ा और हिलाना शुरू कर दिया।  फूफा का लण्ड साला बड़ा गज़ब का था।  मैं समझ गयी की आज बुर फट लाएगी।  मैंने रफ़ा के कान में कहा वह बोली मै अपनी नन्द की बुर फड़वाने ही आई हूँ। आज मेरा अब्बू मेरे सामने ही फाड़ेगा मेरी नन्द की बुर।   ये जब चली जाएगी तो इसकी माँ यानी मेरी सास आएगी मैं उसका भी भोसड़ा अपने अब्बू से फड़वाऊंगी। मैंने मन में कहा वाओ हमारे समाज में बहन चोद वाकई बहुत कुछ होता है और सब कुछ होता। है  यार तेरी नन्द की बुर आज फट जाएगी।

वह बोली मै अपनी नन्द की बुर फड़वाने ही आई हूँ। आज मेरा अब्बू मेरे सामने ही फाड़ेगा मेरी नन्द की बुर।  ये जब चली जाएगी तो इसकी माँ यानी मेरी सास आएगी मैं उसका भी भोसड़ा अपने अब्बू से फड़वाऊंगी।  मैंने मन में कहा वाओ हमारे समाज में बहन चोद वाकई बहुत कुछ होता है और सब कुछ होता है।  बस  थोड़ी ही देर में सब लोग एक एक करके नंगे होने लगे।  ५ मिनट में ही सबके बदन से कपड़े उतर गए और तब मैंने भी अपने कपड़े उतार दिया।  मैं भी  मादर चोद हो गई बिलकुल नंगी।  मेरे हाथ उसके जीजू का लण्ड हिनहिना रहा था।  मैंने उसे अपने मुंह में डाला और एक हाथ से पेल्हड़ थामे हुए लण्ड चूसने  लगी। रफ़ा तो मस्ती से अपने ससुर
का लण्ड आधे से अधिक लण्ड अपने मुंह में घुसेड़े हुए थी।  उसकी नन्द भी नंगी नंगी फूफा का लौड़ा अपने पूरे बदन पर घुमा रही थी. अपनी चूँचियों पर रगड़ रही थीं लण्ड ।  हम तीनो के हाथ में पराये मरद के लण्ड जितनी मस्ती कर रहे थे उतनी मस्ती हम लोग भी कर रहीं थीं। मुझे तो सबको लण्ड चूसते हुए और चाटते हुए  देखने में बड़ा अच्छा लग रहा था।  मुझे तो सबकी चूत सबकी चूँचियाँ सबकी  गांड और सबके लण्ड  देखने में ही मज़ा आ रहा था। तब एकदम  लण्ड मेरी चूत में घुसा दिया  आहिस्ते आहिस्ते चोदने लगा  चुदवाने में  मज़ा आने लगा।  उधर रफ़ा भी मस्ती से अपने ससुर से चुदवाने लगी।  वह बोली हाय ससुर जी तेरा तो लण्ड बड़ा मोटा है बहन चोद ?  मेरी चूत में चारों  चिपक कर घुस रहा है।  बड़ा अच्छा लग रहा है मुझे।  बस इसी तरह चोदे जाओ।  उधर रफ़ा का अब्बू रफा की नन्द की बुर में लण्ड पेले हुए चोदने में जुट गया।   अब देखो न, बेटी अपने बाप के आगे किसी और से चुदवा रही है ।  बाप अपनी बेटी के सामने ही किसी और बुर ले रहा था।  ससुर अपनी बहू की बुर खुले आम चोद रहा है।

बहू भी बुर चोदी अपने ससुर से बड़ी बेशर्मी से  धकाधक चुदवा रही है। नन्द अपनी भाभी के आगे किसी और से चुदवा रही है और भाभी अपनी नन्द के आगे किसी और से चुदवा रही है।  मेरी बहन रफा मेरे आगे किसी और का लौड़ा पेले हुए है और मैं भी उसके आगे किसी और के लौड़े से चुदवा रही हूँ।  मैं अपने फूफा के आगे नंगी लेटी किसी का लण्ड चूस रही हूँ।  मैं भी किसी ससुर को अपनी बहू की बुर लेते हुए देख रही हूँ।  ये सब हमारे ,., समाज में ही संभव है कहीं और नहीं।  इतनी मस्ती और इतनी सामूहिक चुदाई का आनंद हमारे समाज में ही मिलेगा।

थोड़ी देर तक सबकी चुदाई इसी तरह होती रही। फिर अचानक पार्टनर बदल गए।  मेरा ससुर  उठा और अपना लण्ड मेरी नन्द की बुर में घुसेड़ दिया।  यानी एक बाप ने अपनी बेटी की बुर में लण्ड पेल दिया।  बेटी भी मस्ती से लण्ड पेलवाती हुए चुदवाने लगी।  उसे देख कर रफ़ा भी  तरफ बढ़ी और उसका लण्ड अपनी चूत में घुसेड़। लिया  वह भी अपने अब्बू से चुदवाने लगी।  यह देख कर मुझे तो बहुत मज़ा आया।  ये दोनों भोसड़ी वाले एक दूसरे के सामने अपनी बेटी चोदने लगे। अपनी बेटियां चोदने में भी  किसी को कोई शर्म नहीं थी और बेटियों को भी बाप से चुदवाने में भी कोई शर्म नहीं थी।  मैं तो जीजू से चुदवाने में ही मस्त थी। मैंने सोंचा की सच ही कहा  गया है की रात में सभी औरतें रंडी हो जातीं हैं।
न कोई बाप और न कोई बेटी ? न  कोई ससुर न कोई बहू ?  बस लण्ड ही लण्ड और चूत ही चूत ?  
कुछ देर बाद रफ़ा का ससुर मेरे ऊपर चढ़ बैठा और मुझे ही चोदने लगा।  उधर फूफा जान ने भी लण्ड  मेरे मुंह में पेल दिया। अब एक लण्ड मेरी बुर में और एक लण्ड मेरे मुंह में।  मैं दो दो लण्ड का मज़ा लेने लगी।  उधर रफ़ा का जीजू रफ़ा की बुर चोदने लगा और साथ साथ उसकी नन्द की बुर चाटने लगा। ऐसे हि सब ले रात भर चुदी।
मेरा निगाह होने से पहले मै बहुतो लंड खा चुकी हु बहुत तो बाहर का भी लंड खा चुकी हु काफिरो का भी लंड खाने से बहुत मजा आता है मैने अपने भाभीजान और अम्मी को भी काफिरो से भी चुदवाया था ।
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#13
पार्ट 9



बाजी को दो अंकलों ने चोदा

मेरा नाम असलम है, मेरी उम्र 18 साल है। मेरी एक बहन है जिसका नाम शेनाज़ है, मगर हम लोग उसे शन्नो कहकर बुलाते हैं। उसकी उम्र 23 साल है। उसकी शादी हो चुकी है और वो एक बच्चे की माँ है। शन्नो बहुत ही सेक्सी है, उसकी चूची और गांड बहुत बड़ी है, एकदम बाहर की तरफ निकली हुई ! जब वो चलती है तो उसके कूल्हे ऊपर नीचे हिलते रहते हैं। जो भी उसे एक बार देख ले, उसका लौड़ा खड़ा हो जाये। मेरे अब्बू और बाजी के मियाँ दोनों सऊदी अरब में रहते हैं। घर में मेरी अम्मी, बाजी और मैं हम तीनों ही रहते हैं।

एक दिन अम्मी नानी के घर चली गई और मैं स्कूल चला गया। लेकिन स्कूल से मैं जल्दी घर आ गया। बाजी घर में अकेली थी। जब मैं घर पहुँचा तो बाहर एक कार खड़ी थी। यह तो राहुल अंकल की कार थी। राहुल अंकल मेरे अब्बू के दोस्त थे उनकी उम्र 50 साल के आसपास थी लेकिन देखने में 40 के लगते थे। लम्बे, चौड़े और मजबूत बदन के थे। दरवाज़ा अंदर से बंद था। मैं पीछे के दरवाज़े से अंदर गया तो देखा कि बाजी का कमरा बंद था। मैंने जल्दी से चाबी वाले छेद से अंदर देखा तो दंग रह गया। अंदर राहुल अंकल और राज अंकल बाजी को पकड़े हुए थे। बाजी एक झीनी सी नाइटी पहने हुए थी जिसमें से उसकी ब्रा और पैंटी दिखाई दे रही थी। राज अंकल बाजी को चूम रहे थे और राहुल अंकल बाज़ी की गांड सहला रहे थे। बाज़ी भी मज़े ले रही थी।

तभी राज ने कहा- यार राहुल, लौंडिया तो ज़बरदस्त है ! पेलने में बड़ा मज़ा आएगा !

क्यूँ नहीं यार ! बड़ी मुश्किल से मानी है ! बहुत दिनों से सोच रहा था इसकी गांड मारने की ! आज इसकी ऐसी गांड मारूँगा कि याद रखेगी कि कोई लौड़ा मिला था। जब जब मैं इसके घर आता तो अपनी गांड ऐसे मटका कर चलती कि मेरा लौड़ा खड़ा हो जाता और मेरा मन करता कि यहीं पटक कर इसकी गांड में अपना लौड़ा पेल दूँ।

मुझे बहुत गुस्सा आ रहा था और मज़ा भी ! मैं भी देखना चाहता था कि बाजी की कैसी पिलाई होती है। तभी राज अंकल ने बाजी की नाइटी उतार दी अब बाजी सिर्फ ब्रा और पैंटी में थी। राज ने झट से ब्रा भी उतार फेंकी, बाजी की चूची पकड़ ली और जोर जोर से दबाने लगा। हाय हाय ! क्या मस्त बड़ी बड़ी चूचियाँ थी ! पूरी रस से भरी हुई लगती थी ! राज ने एक चूची को मुँह में भर लिया और दूसरी को जोर जोर से दबाने लगा। बाजी सिसकारी भरने लगी- ऊओह्ह्ह्ह आऽऽऽह आऽऽऽईऽऽय !!!

बाज़ी ने राज का सर अपनी चूचियों के बीच में दबाया और बोली- साले ! और तेज़ी से दबा ! पी मेरा दूध ! साले बहुत दिनों के बाद आज किसी ने मेरी चूची को दबाया है ! मेरी चूची में बहुत दूध भरा हुआ है ! जल्दी जल्दी से चूस मेरी चूची को ! घबरा मत ! आज तेरी चूची का सारा रस निचोड़ कर पी जायेंगे !

उसके बाद राज अंकल बाजी की चूची को जोर जोर से पीने लगे। बाजी की इतनी बड़ी चूची थी कि राज अंकल के मुँह में नहीं आ रही थी, फिर भी राज अंकल बाजी की चूची को पी रहे थे। राज अंकल के मुँह में दूध भरा हुआ था क्योंकि बाजी की चूची भी दूध से भरी हुई थी।

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राज अंकल ने कहा- बड़ा मीठा दूध है तेरा !

उधर राहुल अंकल बाजी की गांड को सहला रहे थे। तभी राहुल अंकल ने बाजी की पैंटी उतार दी। वाह ! क्या मस्त चूत और गांड थी ! एक भी बाल नहीं था। चूत और गांड दोनों एकदम चिकनी थी ! मेरा तो लौड़ा खड़ा हो गया था।

तभी राहुल अंकल ने कहा- क्या मस्त चूत और गांड है तेरी ! एकदम चिकनी ! एक भी बाल नही है ! पेलने में बड़ा मज़ा आएगा !

राहुल अंकल ने बाजी की गांड को फैला कर अंदर देखा तो बोले- एकदम कसी गांड है ! राम कसम, आज तो इस लौंडिया की गांड फाड़ने में बड़ा मज़ा आएगा !

राहुल अंकल ने बाजी की गांड पर तीन चार चपत लगाई। वाह क्या मस्त गांड है ! बहुत दिनों के बाद पर्दा करने वाली लड़की की गांड मारूँगा !

मुझे बड़ा मज़ा आ रहा था। मैं देखना चाहता था कि राहुल अंकल बाजी की गांड कैसे मारते हैं। मैंने अपनी पैंट उतार दी और अपने लण्ड को आगे पीछे करने लगा। मेरा लण्ड चार इन्च लम्बा और दो इंच मोटा था। उधर राज अंकल बाजी की बड़ी बड़ी चूचियों को जोर जोर से मसल रहे थे और बाजी जोर जोर से सिसक रही थी- ऊह्ह्ह,आह्ह्ह्ह,ओऊ बहुत मज़ा आ रहा है ! और जोर जोर से मसल के पूरा दूध पी जा !

राज पागलों की तरह बाजी की चूची को मसलने लगा और चूची को मुँह में लेकर पीने लगा।

ओह मेरे चोदू राजा ! और पी मेरा दूध ! उसके बाद तुझे जमकर पिलाई करनी है मेरी चूत रानी की ! साली बहुत दिनों से भूखी है !

तू फ़िक्र न कर मेरी शन्नो रानी ! आज तेरी चूत और गांड की ऐसी पिलाई करेंगे हम दोनों कि तेरी चूत और गांड को फाड़ के रख देंगे !

बाजी की चूचियों के चुचूक एकदम लाल हो गए थे। तभी राज अंकल ने अपना मुँह चूची से हटा कर बाजी के मुँह पर लगा दिया जिससे उसके मुँह का दूध बाजी के मुँह में चला गया और बाजी उसके मुँह को अपने मुँह में लेकर जोर जोर से चूसने लगी। मेरी बाजी राज अंकल के होंठों को जोर जोर से चूस रही थी। राज अंकल भी बाजी के होंठों को जोर जोर से चूस रहे थे। उधर राहुल अंकल बाजी की फूली हुई गांड को सहला रहे थे। तभी राहुल अंकल बाजी की गांड में अपनी ज़बान पेल कर चाटने लगे। बाजी भी अपनी गांड को राहुल अंकल के मुँह में दबाने लगी। इससे राहुल अंकल को मज़ा आने लगा और वो तेज़ी से अपनी ज़बान चलाने लगे। जब बाजी की गांड एकदम गीली हो गई तो राहुल अंकल ने अपनी एक ऊँगली बाजी की गांड में पेल दी तो बाजी जोर से उछल पड़ी- उई अम्मी ओह्ह्हह्ह,आह्ह्ह बहुत दर्द हो रहा है ! थोड़ा धीरे पेलो अपनी ऊँगली को मेरे चोदू राजा !

तभी राज अंकल ने बाजी की चूत को देखा तो देखते ही रह गए- वाह ! क्या मस्त चिकनी चूत है ! एक भी बाल नहीं ! राज अंकल ने चूत को सहलाया और अपनी एक ऊँगली को चूत में पेल दिया और अपनी ऊँगली को आगे पीछे करने लगे।

मेरी बाजी ने कहा- हाय, मेरे चोदू राजा ! थोड़ा और अन्दर तक पेलो अपनी ऊँगली को ! बड़ा मज़ा आ रहा है !

राज अंकल ने कहा- क्या गरम चूत है रानी तेरी ! एकदम आग की भट्टी ! मन कर रहा है जल्दी से अपना लौड़ा पेल दूँ तेरी बुर में ! कैसी रस से भरी हुई है ! पहले मैं तेरी बुर का रस पीऊंगा, उसके बाद तेरी बुर में अपना लौड़ा पेल कर तेरी बुर की ज़बरदस्त पिलाई करूँगा ! वाह क्या मस्त फूली हुई चूत है तेरी !

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बाजी सिसक रही थी- उह्ह्ह्ह ह्ह आह्ह्ह्हह्ह्ह्ह औऊऊऊउ ! क्या मस्त मज़ा आ रहा है ! और तेज़ी से पेलो अपनी ऊँगली मेरे बुर में ! अभी तो शुरुआत है ! आगे आगे देखो, कितना मज़ा आता है !

उधर राहुल अंकल बाजी की गांड को ज़बरदस्त तरीके से चाट रहे थे, वो अपनी उंगली को तेज़ तेज़ पेल रहे थे बाजी की गांड में और बाजी भी अपनी गांड को मज़े से चटवा रही थी। तभी राहुल अंकल ने अपनी एक ऊँगली पूरी की पूरी बाजी की गांड में पेल दी। बाजी उछल पड़ी- उई अम्मी मै मर गई ऊऊऊह आह्ह्ह्हह्ह औऊऊऊउ ! धीरे धीरे पेलो मेरे चोदू राजा ! मेरी गांड बहुत तंग है ! अभी तक मैंने गांड नहीं मरवाई !

इतनी मस्त गांड है तेरी और तेरे खसम ने नहीं मारी तेरी गांड?

नहीं !

क्यूँ नहीं मारी ?

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क्यूंकि उनका लुल्ला बहुत छोटा है और बहुत मुश्किल से मेरी चूत मार पाते थे!

तू फ़िक्र मत कर ! मैं अपने लम्बे और मोटे लौड़े से तेरी गांड फ़ाड़ूंगा ! तुझे बहुत मज़ा आएगा जब मैं तेरी मस्त हसीं गांड को फ़ाड़ूंगा !

सचमुच आपका लुल्ला बहुत बड़ा है?

मैं तुझे दिखाता हूँ अपना लुल्ला !

यह कहकर राहुल अंकल ने अपने पूरे कपड़े उतार दिए और उनका काला सा लुल्ला सामने खड़ा था। बाजी ने जब उनका लुल्ला देखा तो पागल हो गई- याल्लाह ! इतना बड़ा लुल्ला ! वो भी कटा हुआ नहीं है !

मैं भी इतना बड़ा लौड़ा देख कर दंग रह गया जो लगभग दस इन्च लम्बा और पांच इन्च मोटा था। मै समझ गया कि आज बाजी की खैर नहीं !

राहुल अंकल आज बाजी की गांड का बाजा बजा देंगे, मैंने सुना था कि हिन्दू का लौड़ा बहुत लम्बा और मोटा होता है, और आज देख भी लिया ! क्या मस्त लौड़ा था राहुल अंकल का ! एकदम काले नाग की तरह दिख रहा था। एक भी बाल नहीं था, उनके लौड़े का सुपारा काली चमड़ी से ढका हुआ था।

तभी मेरी बाजी ने उनका लौड़ा अपने हाथों में ले लिया। उनका लौड़ा इतना बड़ा था कि बाजी के हाथों में नहीं आ रहा था। बाजी ने लौड़े की चमड़ी को हटाया तो उनका सुपारा देख कर बाजी अपनी ज़बान से चाटने लगी। क्या मस्त लाल लाल सुपारा था !

बाजी पूरी मस्ती में थी और सुपाडे को चूसे जा रही थी- ऊह्ह्हह्ह आह्ह्ह्हह्ह्ह्ह ! क्या मस्त है ! आज तो चाट चाट के खा जाउंगी !

चूस मेरी शन्नो रानी ! मेरा लौड़ा अपने मुँह में लेकर चूस ! तुझे और मज़ा आएगा ! देख कैसा घोड़े के जैसा है मेरा लौड़ा ! मेरी उम्र पचास के पार पहुँच गई है मगर मेरा लौड़ा अभी भी जवान है ! ले मेरा हिन्दू लौड़ा अपने मुँह में !

इतना बड़ा लौड़ा बाजी के मुँह में नहीं आ रहा था, मगर राहुल अंकल बाजी के सर को पकड़ के अपना लौड़ा बाजी के मुँह में पेलने लगे- ले साली चूस मेरा लौड़ा ! बहुत दिनों के बाद चुसवा रहा हूँ !

बाजी के मुँह में बड़ी मुश्किल से जा रहा था राहुल अंकल का लौड़ा ! उधर राज अंकल अपनी ऊँगली को बाजी की गुलाबी बुर से निकाल कर अपनी ज़बान बाजी की गुलाबी बुर में पेलने लगे। क्या मस्त गुलाबी बुर थी बाजी की ! राज अंकल भी मस्ती में बाजी की बुर को चाट रहे थे- वाह क्या नशीली चूत है ! राज अंकल तेज़ी से अपनी ज़बान पेल रहे थे बाजी की चूत में ! बाजी भी जोश में सिसकर रही थी- ऊह ! हाय ! आह्ह्ह्हह्ह ! औऊऊऊऊ क्या मस्त मज़ा दे रहे हो ! इतना मज़ा तो मेरे शौहर ने नहीं दिया था ! और पेलो अपनी ज़बान को मेरी बुर में ! अन्दर तक पेल कर मेरा पानी निकालो और पी जाओ ! खा जाओ मेरी बुर को ! कसम से क्या मस्त मज़ा आ रहा है ! मुझे नहीं पता था हिन्दू लोग ऐसा मज़ा करते हैं वरना अब तक मैं कितनों से मज़ा ले चुकी होती !

हिंदी सेक्स स्टोरी : मामी और उसकी बेटी को एक साथ चोदा
अभी भी कुछ नहीं बिगड़ा है ! आज हम दोनों तेरे को इतना पेलेंगे कि तू बाकि के लौड़ों को भूल जायेगी !

मुझे भी आज तुम दोनों से खूब पिलना है ! मुझे बहुत दिनों से बड़ी चुदास लगी थी ! बस आज तुम दोनों इतना पेलो मुझे कि मैं मर जाऊँ !

तभी राज बोला- पहले मैं तेरी बुर को खूब चूस कर तेरा पानी निकाल कर पीऊंगा ! फिर उसके बाद तेरी बुर में अपना लौड़ा पेलकर तेरी ज़बरदस्त पिलाई करूँगा !

उधर राहुल अंकल का काला लौड़ा गपागप बाजी मुँह में जा रहा था। बाजी खूब मज़े से उनका काला लौड़ा अपने गुलाबी होंठों से चूस रही थी। तभी राहुल अंकल ने अपना काला लौड़ा बाजी के मुँह से निकाल कर कहा- अब ज़रा मेरी गोली को भी चूस ! तुझे और भी मज़ा आएगा ! बाजी झट से दोनों गोलियों को मुँह में लेकर चूसने लगी। राहुल अंकल जोर जोर से सिस्कार रहे थे- ओह ! आह्ह्ह्हह्ह् ! बड़ा मज़ा आ रहा है ! क्या मस्त चूसती है तू ! आज तूने पागल कर दिया है ! आज तो तेरी ऐसी गांड मारूँगा कि तू लौड़ा लेने के नाम से डरेगी।

राहुल अंकल अपने लौड़े से बाजी के गालों पर मार रहे थे जिससे बाजी जोर जोर से सिसक रही थी- ऊह्ह्हह्ह आह औऊ ऊऊ ! मेरे चोदू राजा ! क्या मस्त लौड़ा है तेरा ! कसम से, मैं तो मस्त हो गई हूँ तेरा लौड़ा चूस कर !

उधर राज अंकल तेज़ी से बाजी की बुर को चूस रहे थे। तभी बाजी ने कहा- ओह्ह्ह मेरे चोदू राज ! मेरा पानी निकलने वाला है ! हाय ऊह्ह्ह अऔह्ह्ह्ह ! और जोर से चूस मेरी बुर को !

बाजी अपनी बुर को राज अंकल के मुँह रख कर अपनी गांड को जोर जोर से हिलाने लगी- ओहह्ह औऊउ हाय औऊउ ले साले मेरी बुर का पानी !

और बाजी ने अपनी बुर का पूरा पानी राज अंकल के मुँह में गिरा दिया। बाजी बुरी तरह हांफ रही थी, राज अंकल का मुँह बाजी की बुर के पानी से भर गया था।

राहुल अंकल ने कहा- तेरी चूत से बहुत पानी निकला !

हाँ मेरे राजा ! बहुत दिनों से पानी नहीं निकला था ! इसलिए आज बहुत पानी निकला ! तू भी चाट ना मेरी बुर का पानी !

इतना सुनते ही राहुल अंकल भी अपनी जुबान से बाजी की बुर का पानी चाटने लगे। दोनों ने पूरा पानी चाट के साफ़ कर दिया।
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#14
Great update post lot of story here
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#15
Part 9

मैने अब्बू से चुदकर अपना भाई पैदा किया

हेलो दोस्तों कैसे हो आप सब उम्मीद है आप सब मज़े कर रहे होंगे। लड़के अपना लंड अपनी माँ बहनो की चूत मे पेल रहे होंगे और लड़कियां अपने बाप भाइयों का लंड अपनी चूत मे लेकर मज़े कर रही होंगी। तो ज्यादा टाइम ना वेस्ट करते हुए सीधे अपनी कहानी पर चलते है।

दोस्तों ये कहानी है फहीम कुरैशी और उसकी बेटी असमा कुरैशी की.. फहीम कुरैशी की बीवी का नाम जैनब कुरैशी था. फहीम की नयी नयी शादी हुई थी और असमा उनकी पहली औलाद थी जो लड़की थी। इससे जैनब बहुत दुखी थी क्युकी वह पहली औलाद लड़का चाहती थी. लेकिन बाद में उसने खुद को संभाल लिया। जब असमा 2 साल की थी तब जैनब दोबारा प्रेग्नेंट हुई थी। लेकिन 9 महीने बाद उसे फिर से लड़की का मुँह देखना पड़ा.. और देखते देखते जैनब को तीसरी भी लड़की ही हुई. जिससे जैनब को बहुत ही ज्यादा दुःख हुआ लेकिन उसने कभी इस दुःख को फहीम के सामने नहीं रखा.

Abbu ne choda kahani hindi
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कई साल हो गए तीनो लड़किया बड़ी हो गयी. फहीम भी अपने काम में व्यस्त हो गया और उसके बाद उसने भी कभी अपनी बीवी से उसका हाल नहीं पूछा.. एक रात जब फहीम शाम में घर लौट कर अपनी बीवी के पास बैठा. इस इरादे से की आज अपनी जैनब के साथ सेक्स करेगा। लेकिन उस रात सब उल्टा हुआ. जैनब ने बरसो के दुःख को फहीम पे निकाल दिया और फहीम के साथ गाली गलोच करके घर छोड़ कर भाग गयी. तीनो बेटियों ने जैनब को रोकने की बहुत कोशिश की पर वह नहीं रुकी और चली गयी. फहीम अपने कमरे में बैठा हुआ उसके अंदर छुपे दुःख के बारे में सोच सोच कर खुद परेशान हो रहा था. की कभी जैनब ने उसे इस बारे में कुछ बताया क्यों नहीं’. Abbu ne choda sex story

और फिर सुबह हो गयी। फहीम अपने काम पर निकल गया. लेकिन फहीम की तीनो बेटियाँ यही सोचती रही की उनकी अम्मी कहा गयी होंगी. तभी असमा को ख्याल आया शायद वह अपनी बहन सिख बीवी के घर गयी होंगी. असमा अपनी दोनों बहनो को बिना बताये सिख बीवी के घर निकल गयी थी. उसी शाम असमा करीब 5 बजे सिख बीवी के घर पहुंची. वहाँ जाकर देखा तो उसकी अम्मी भी वही थी. अंदर जाकर असमा अपनी अम्मी से बाते करके उन्हें मनाने लगी ताकि वह वापस घर लौट सके. लेकिन वह नहीं मानी और असमा को वापिस जाने को कह दिया.

इस पर असमा बोली – आपको बेटा चाहिए ना?

जैनब – हाँ.

असमा – औलाद ना! हाँ मैं दूंगी आपको लड़का.

जैनब – (हैरानी से उसकी तरफ देखते हुए) तू कैसे देगी मुझे तेरे अब्बू के बीज वाला लड़का चाहिए.

असमा – अब्बू के बीज का ही लड़का होगा.

जैनब – कैसे?

असमा – बीज अब्बू का का होगा बस कोख मेरी होंगी!

जैनब – (उसको घूरते हुए) अच्छा.

असमा – कह देना तुमने जन्म दिया है.

जैनब – तेरा अब्बू मानेगा?

असमा – आपको औलाद चाहिए और अब्बू को अपनी भूख मिटानी है, वह मान जायेंगे.

जैनब – ठीक है.

असमा – तो फिर चलो.

जैनब – अभी नहीं.

असमा – क्यों ????


जैनब – पहले तू औलाद पैदा कर फिर मैं आउंगी.

असमा – ठीक है.

फिर असमा अगली सुबह अपने घर लौट जाती है. घर पहुँचते ही उसकी दोनों बहने अम्मी के बारे में पूछने लगती है. लेकिन असमा उन दोनों को बस यही कहती है..

असमा – अम्मी सही सलामत है जल्दी ही लौट आएंगी अल्लाह कसम.

यह बात सुनकर उन दोनों की बेचैनी दूर हो जाती है. तभी फहीम काम से लौट कर घर आता है.

फहीम असमा की तरफ देख पूछता है जैनब की कोई खबर?

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असमा अपने अब्बू को नहीं में जवाब दे कर बात टाल देती है. और रात के खाने की तैयारी करने लगती है. और रात का खाना खाने के बाद सभी सोने चले जाते है. असमा बर्तन धोकर अपने अब्बू के कमरे में चली जाती है. लेकिन फहीम अपने कमरे में नहीं होता. और असमा उसे ढूढ़ने बहार जानने लगती है तभी बाथरूम से आवाज़ें आने लगती है. जिससे सुनकर असमा थोड़ा हैरान हो जाती है क्यों की वह आवाज़ कुछ इस प्रकार थी.. Abbu ne choda sex story

असमा आह मेरी जान एक बार आह असमा बस दे दे एक बार. तुझे अपने लोडे की रानी बना के रखूंगा आआह असमा मेरा निकलने वाला है!! आह आ आह।

ये सुनकर असमा कमरे में ही खड़ी रहती है. थोड़ी देर बाद फहीम बाथरूम से बाहर निकलता है और असमा को बहार देखकर बहुत घबरा जाता है कही असमा में उसकी आवाज़ें तो नहीं सुन ली.

असमा – अब्बू अभी तक आप सोये नहीं.

फहीम – सोने ही जा रहा था तुम यहाँ कब आई?

असमा – (खुलकर बोलते हुए) जब आप मेरे नाम की मुठिया मार रहे थे.

फहीम – थोड़ा घबराता हुआ. बेटी वह बात नहीं है – बस आज अपने आप को कण्ट्रोल नहीं कर सका.

असमा – तो अब्बू मै कहाँ कुछ कह रही हूँ. आपने ही पैदा किया है और आप कुछ भी कर सकते है मेरे साथ.

फहीम – (ये सुनते ही असमा के पास आ जाता है) – सच्ची में?

असमा – हाँ अब्बू.

फहीम – बस असमा तुमने इतना कहकर ही मुझ पे एहसान कर दिया.

असमा – इसमे एहसान की क्या बात है?

फहीम – अच्छा वह सब छोड़ आज तू यही पर सो जा.

असमा – ठीक है अब्बू.

फहीम (उसके बूब्स को घूरते हुए) उसी कपडे में सोयेगी.

असमा – नहीं लेकिन कपडे तो दूसरे रूम में है , मैं लेकर आती हु.

फहीम उसका हाँथ पकड़ कर खींचते हुए)- रहने दे बेटी.

असमा – पर मुझे ऐसे नींद नहीं आती.

फहीम – (अचानक बोल पड़ता है) अंदर कच्छी और ब्रा पहनी है न.

असमा – (शरमाते हुए) हां.

फहीम – (थोड़ा उतावला होकर) किस रंग की पहनी है.

असमा – पिंक कलर की..

फहीम – बस फिर उसी में सो जा.

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फिर असमा अपना सूट उतार देती है और ब्रा और कच्छी में बेड पर आकर लेट जाती है. फहीम भी सिर्फ कच्छे में बेड पर आ जाता है. और सोने का नाटक करता है. करीब 12 बजे फहीम की नींद खुलती है और वह असमा की तरफ देखकर पागल हो जाता है और उसके बूब्स पर हाथ फेरने लगता है. तभी असमा की भी नींद खुल जाती है और वह अपने अब्बू से कहती है…

असमा – आप यह क्या कर रहे है अब्बू?

फहीम – कुछ नहीं असमा बस तेरी अम्मी जैनब की याद आ रही है.

असमा – तो फिर आप मेरे बूब्स क्यों दबा रहे हो.

फहीम – तेरी अम्मी भी ऐसी ही ब्रा और कच्छी पहनती है.

ये कहकर फहीम रोने की एक्टिंग करने लगता है. असमा फहीम को चुप करने के लिए अपने सीने से लगा लेती है. फहीम उसकी ब्रा का हुक खोलने लगता है और उसकी ब्रा खोल कर फेक देता है. फिर वह कच्छी में हाथ डालकर उसकी चूत सहलाने लगता है. Abbu ne choda sex story

असमा – अब्बू आप ये क्या कर रहे हो?

फहीम – क्या करु बेटी कण्ट्रोल नहीं कर पा रहा हूँ.

असमा – लेकिन अब्बू यहाँ पर तो सिर्फ एक लड़की का शोहर ही हाथ लगाता है.

फहीम – बेटी पर तू पैदा भी तो मेरे वजह से हुई थी.

असमा – वह तो आप सही कह रहे हो.

फहीम अपना काम चालू रखता है और कच्छी भी फाड़ कर फेंक देता है और उसको बेड पर लेटाकर उसकी चूत चाटने लगता है.

असमा के मुँह से आह आह ऊह ओह आह आ आअह्ह्हास आआअह्ह्हा ऊई आहहहहहहा आआआहहहहह ऊह की आवाज़े पुरे रूम में गुजने लगती है.

फिर थोड़ी देर बाद फहीम खड़ा होकर असमा के मुँह में लंड डाल मूतने लगता है. असमा फहीम का सारा मूत पी जाती है. फिर फहीम बेड पर से उतर कर असमा को कुतिया बना कर पीछे से लंड उसकी गांड में घुसेड़ देता है और उसके मुँह से जोरदार चीख निकल जाती है. लेकिन फहीम उसकी चीख की परवाह न करते हुए धक्के पे धक्का मारकर उसकी गांड मारने लगता है और गाली देने लगता हैं.

असमा – अब्बू जरा धीरे धीरे दर्द हो रहा है.

फहीम – बेटी असमा आज मत रोक.

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असमा – अब्बू लेकिन मेरी चूत आपके मोटे लम्बे लंड को झेल नहीं पा रही. जरा धीरे धीरे करिए ना वरना मेरी चूत फट जाएगी.

फहीम – (उसकी बातो को नज़र अंदाज़ करते हुए) अपनी रफ़्तार बरकरार रखता है और साथ साथ उसके बूब्स को नींबू की तरह निचोड़ने लगता है. उधर असमा की आँखों से आँसू निकलने लगते है। तभी असमा को अपने अम्मी की बात याद आती है वह अपने आँसू पोंछकर आनंद लेने लगती है और अपने अब्बू को खुश करने के लिए आह अब्बू और जोर से आह फाड़ दीजिये अभी इस चूत को!

आए और जोर से आह!! आह!!. आह!! अब्बू निकाल दो अपना सारा माल.

अब्बू ने चोदा हिन्दी कहानी
असमा भी सेक्सी आवाज़े निकालकर अब्बू को खुश करने लग जाती है. उधर फहीम असमा के मुँह से ऐसी आवाज़े सुनकर अपना लंड उसकी गांड से निकाल कर चूत में डालकर चोदने लगता है. चूत में लंड जाते ही असमा और छटपटाने लगती है और जोश में आकर जोर जोर से आवाज़े निकालने लगती है. करीब 30-40 मिनट तक चूत की चुदाई चलने के बाद फहीम असमा की चूत में ही अपना सारा माल निकाल देता है. और उसी के ऊपर लेट जाता है. सुबह होने तक फहीम असमा की चूत 4 बार – माल से भर चुका था. असमा की हालत ऐसी हो गयी थी की. की वो सही से खड़ी भी नहीं हो पा रही थी. फहीम जब नहा धोकर काम पर जाने के लिए रूम से बहार निकला तो असमा तब भी बेड पर बेहाल पड़ी हुई थी और उसकी दोनों बहने कमरे के दरवाज़े पर खड़ी होकर उसकी हालत को देख रही थी. Abbu ne choda sex story

फहीम में उन दोनों से पूछा की तुम यहाँ क्या कर रही हो. तो वह दोनों डरकर अपने रूम में चली गयी. और फहीम काम पर चला गया. थोड़ी देर बाद असमा उठी और नहा धोकर खाना खाने लगी. और दोनों बहनों के पूछने पर की उसने ऐसा क्यों किया.

उसने कहा – अम्मी अब्बू की खुशी के लिए।

ठीक 9 महीने के बाद असमा ने एक लड़के को जन्म दिया जिसका नाम अफजल कुरैशी रखा. ये खबर सुनकर जैनब वापस घर लौट कर आने लगी. लेकिन उसने काफी देर कर दी थी. तो दोस्तो ये कहानी आपको कैसी लगी कमेंट करके ज़रूर बताना
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#16
Part -10 अब्बू के बड़े लंड से चुदी

हेलो दोस्तो! कैसे हो आप सब? उम्मीद करती हूँ आप सब मज़े कर रहे होंगे! आज मै जो कहानी आपके लिए लेकर आई हूँ वो मेरे और मेरे अब्बू से हुई चुदाई की कहानी है। इस कहानी को पढ़कर आपके लंड और चूत मे पानी आ जाएगा। चलिये कहानी शुरू करते है!

मेरा नाम ज़ोया अंसारी है और मेरे अब्बू का नाम जुनैद अंसारी है. जब मै 4 साल की थी तभी मेरी अम्मी की डेथ हो गयी। उसके बाद अब्बू ने दूसरा निकाह भी किया लेकिन उनका दूसरा निकाह 2 सालो तक ही चला। उसके बाद दूसरी अम्मी अपने यार के साथ भाग गयी. उसके बाद अब्बू ने शादी नहीं और मेरे से प्यार करने लगे. जब मै 10 साल की हुई तभी से अब्बू मुझे पर ज्यादा नज़र रखने लगे. क्युकी उस समय मेरे बदन ने खिलना शुरू कर दिया था। वह हमेशा मुझे अपने पास ही रखते. मुझे अपने हाथो से खिलाते, नहलाते और कपडे पहनते और कपडे भी उन्ही के पसंद थे.

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धीरे धीरे मैंने खाना बनाना भी सीख लिया. जब मै 14 साल की हुई तब तक भी अब्बू मेरे साथ ही सोते थे और मेरे छोटे छोटे उभरते चूचियों पर अपना हाँथ घुमाने लगते थे. तब मुझे लगता था अब्बू मुझे प्यार कर है और रात को सोते समय मेरे होंठो पर गुड नाईट किस कर मुझे कसकर पकड़ कर सो जाते. फिर सुबह अब्बू और मैं उठते. मैं अब्बू के लिए खाना बनाने लगती. तभी अब्बू की आवाज़ बाथरूम से आती और मैं अपने कपडे लेकर अब्बू के साथ नहाने लगती.

अब्बू पहले मेरी कमीज़ निकालते फिर मेरी मुझे नीचे से नंगा करते और जब मैं उनके सामने कच्छी मे आती तो पहले अब्बू अपने हाथ मेरी कच्छी में डाल के मेरी चूत की सहलाते.. फिर एक झटके में मेरी कच्छी उतार देते और अब्बू मेरे ऊपर पानी डाल कर मेरी चूचियों पर साबुन लगाने लगते.. और धीरे धीरे नीचे जाकर मेरी टांगों को खोलकर बीच में साबुन डालकर मसलने लगते. ”ऐसा करने से जब मेरी थोड़ी की सिसकियाँ निकलती तो अब्बू कहते बहुत मैल जमा हो गया है. उसके बाद अब्बू अपना पजामा निकालते और मेरे हाँथ में अपना बैठा लंड थमा देते. जिसपर मै साबुन लगा लगा के मैल निकालने लगती जिससे उनका लंड 9 इंच लम्बा हो जाता था. जिसे देखकर मेरे मन में यही सवाल उठा था की यह खड़ा क्यों हो जाता है.

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जब अब्बू से ये सवाल करती तो अब्बू बात को कल बताऊंगा कहके टाल देते. फिर हम नहा कर बाहर निकालते और पहले अब्बू मुझे कपडे पहनाते. जब अब्बू मुझे कच्छी पहनाते तो उनका 9 इंच लम्बा लंड हवा में झूमने लगता जिससे देख कर पता नहीं मेरा मन क्यों ललचाने लगता. फिर अब्बू अपने कपडे पहनकर काम पर चले जाते और जाते वक़्त मुझे घर में रहने का हुकुम देते. मेरे होठो की लम्बी चुम्मी लेकर चले जाते. जब शाम को अब्बू आते तो मैं कुछ भी कर रही होती हूँ तो मुझे वही से अपनी गोद में उठा कर बिस्तर पर पटक कर मेरी गर्दन को चाटने लगते। फिर उसके बाद अपने काम की बाते मुझे बताते की उन्होने काम पर क्या क्या किया. फिर मैं खाना बनाने लगती और फिर खाना खाके मैं और अब्बू सो जाते.

देखते देखते मैं बड़ी हो गयी और मेरा बंदन भी इतना खिल गया था की 28 नंबर की ब्रा भी अब मुझे 34 नंबर की आने लगी थी. मेरा बदन पूरी तरह से भर गया था यह यूँ कहो मैं पूरी तरह से जवान हो गयी थी. जिसे देख कर मेरे अब्बू अपना तम्बू बनने से नहीं रोक पाते थे. 20 साल होने के बाद भी मैं अब्बू के लिए अभी भी छोटी बच्ची ही थी. अभी भी अब्बू ही मुझे खिलाते और सुबह सुबह नहलाते. अपने हाथों से कपडे पहनाते और अब्बू के साथ ही सोती. इतने सालो मे कुछ भी नहीं बदला था. बदलाव आया था तो बस उनके प्यार करने के तरीके में. अब्बू मुझे और ज्यादा प्यार करने लगे थे. और मेरे साथ ज्यादा समय बिताने लगे थे. सुबह सुबह जब मैं और अब्बू नहाते तो अब्बू का लंड मेरी चूत को छूने लगता. कभी कभी जब अब्बू को ज्यादा प्यास लगती तो अब्बू मेरी चूत को चाट चाट के मेरे अंदर से पानी निकाल कर पी लेते. जब मुझे जूस पीने का मन करता तो अब्बू अपना लंड मेरे मुँह में डाल देते. और सच में उनका जूस बहुत ही टेस्टी भी होता.

अब्बू ने चोदा हिन्दी कहानी
एक रात जब मैं और अब्बू खाना खा के टीवी देखने बैठे और टीवी पे बेबी डॉल गाना बजने लगा. जिसे देखकर अब्बू का मन मचल उठा और टीवी बंद कर के हम सोने चले गए. करीब रात के 2 बजे मेरी चूचियों पर किसी के हाँथ पड़े और मेरी चूचियों को जोर जोर से दबाने लगे जिससे मेरी आंखे खुली। मैंने देखा तो वह अब्बू का हाँथ था. जब मैं अब्बू की तरफ देखने लगी तो अब्बू मेरे होंटो को अपने होंटो से कसकर दबाकर चूसने लगे। और अपने एक हाँथ से मेरी कमीज़ के अंदर हाँथ डाल कर मेरी चूचियों को मसलने लगे। मेरे निप्पल को काटने लगे जिससे मुझे दर्द होने लगा. फिर मेरे होंटो को चूमते चूमते अब्बू मेरे ऊपर आ गए और दोनों हाथो का जोर लगा के मेरी कमीज़ फाड़ दी. फिर वह मेरी चूचियों को ब्रा के ऊपर से जोर जोर से मसलने लगे.

थोड़ी देर बाद अब्बू ने मेरे होंठो को आज़ाद किया लेकिन अब्बू अभी भी मेरी ऊपर चढ़े हुए थे. मैं अब्बू से कुछ कह पाती उससे पहले अब्बू मेरे चेहरे को पागलो की तरह चूमने लगे और बोले मेरी रानी तू तो कमाल हो गयी है. ये कहकर मेरा उन्होने मेरा पूरा चेहरा गीला कर दिया. फिर अब्बू मेरे ऊपर से उठे और मुझे बेड पे से खड़ा किया.और मेरी पलाजो को खोल कर नीचे गिरा कर मेरी नाभि में अपनी जीब डाल कर चाटने लगे. अब्बू के ऐसा करने से मैं मदहोश हो गयी और कुछ कहने की बजाये आहें भरने लगी. और उनके सर को अपने पेट पर दबाने लगी. मेरी नाभि को चाटते चाटते अब्बू ने मेरी चूत को कच्छी के ऊपर से ही चाटकर गिला कर दिया. उसके बाद अब्बू ने कच्छी को अपने हांथो से मेरे शरीर से टांगो के रास्ते अलग कर के फेक दिया.

मेरी बालो भरी चूत को अब्बू पागलो की तरह चाटने लगे और मै मदहोशी के सागर में डूबकर अब्बू का साथ देने लगी. जब जब अब्बू अपनी जीभ को मेरी चूत पर फेरते तब तब मेरे मुँह से कामुकता भरी आवाज़े निकलती। वह साथ साथ अपने हाथो से मेरी गांड मसलने लगे. चूत चाटने में अब्बू और चटवाने में मैं दोनों इतने पागल हो गए. मुझे पता ही नहीं चला की मेरा पानी निकलने वाला है. जब अचानक मेरी चूत ने पानी छोड़ा तो मेरे मुँह से आहहाहा आहहाहा की आवाज़ निकली.. और मेरी चूत का पानी झड़ा और अब्बू के मुँह में गिरा जिसे अब्बू मज़े से पी लिए. फिर अब्बू खड़े हुए और मेरी चूचियों को ब्रा से अलग कर मुझे बेड पर गिरा कर मुझे टांगों से पकड़ कर अपनी तरफ खींच कर अपने पाजामे से लंड निकालकर और मेरी चूत पर थोड़ा रगड़ कर सीधा चूत में घुसा दिया।

मै अब्बू की रंडी बनकर चुदी
मेरे मुँह से चीखें निकलने लगी। अब्बू मेरी आवाज़ सुनकर बोले .. “थोड़ी शांति कर शांति थोड़ी देर में आह की आवाज़ अहःअहः में बदल जाएगी.”फिर उसके बाद अब्बू ने अपने लंड के दूसरे धक्के के साथ अपना एक हाथ मेरे मुँह पे रख दिया और अपनी स्पीड तेज़ करते चले गए. शुरू शुरू में तो मुझे लगा जैसे में मर ही जाउंगी. लेकिन थोड़ी देर बाद मुझे ऐसा लगा जैसे मै जन्नत में हूँ. और अब जैसे ही अब्बू धक्का लगाते मै अब्बू का साथ देने के लिए आह अहा की आवाज़े निकालने लगी। फिर थोड़ी देर बाद अब्बू ने मेरी चूत में से लंड निकाला और मेरी एक टांग अपने कंधे पर रख कर लंड को अंदर बाहर करने लगे. बीच बीच मे वह मेरी चूत पर थूक कर अपने रफ़्तार बढ़ा देते. करीब 20 मिनट की धुंआधार चूत चुदाई के बाद अब्बू ने मुझे बेड पे घोड़ी बना कर पीछे से लंड मेरी गांड में गुसा कर मेरी गांड मारने लगे.

वह अपने दोनों हाथों को मेरे कंधों पर रखकर जोर जोर से धक्के मारने लगे. बीच बीच में मेरी चूचियों को मसलने लगते और निप्पल को काटने लगते.

जैसे चारो तरफ अहहहहहहह ऊऊह्ह्ह आहाः हाही इहेहेहे उहहुहिहहु आहः अहहहहह अहहहहहह के साथ साथ फच फच फच की आवाज़ें गूंजने लगी..

मेरे प्यारे अब्बू ने मुझे चोदा
और ऊपर से बेड के हिलने की आवाज़ें भी आने लगी. 9 इंच के लोडे से चूत और गांड मारने के बाद जब अब्बू ने अपना लोड़ा मेरे मुँह के सामने रखा तो मैंने उसे झट से अपने मुँह में लपक लिया और लॉलीपॉप की तरह चूसने लगी. लंड पर लगा मेरी चूत का माल जब मैंने चाटा तो मैं पागल हो गयी. फिर जैसे अब्बू के लंड से जूस निकलने वाला था. अब्बू ने झट से लंड को मेरे मुँह से निकालकर मेरी चूत के अंदर घुसा कर छोड़ दिया. करीब 5 मिनट तक अब्बू ने लंड को मेरी चूत में रखा और लंड निकालने के बाद मेरी बेड से उठने तक की हिम्मत नहीं हुई और मैं बेड पर नंगी ही सो गयी.

फिर अचानक सुबह 7 बजे मैंने अपने अब्बू का हाथ अपनी चूत पे महसूस किया. और फिर जैसे ही अब्बू ने मुझे होश में आता देखा. ज्यादा देर न करते हुए अब्बू ने 9 इंच लम्बा लंड फिर मेरी चूत में घुसा दिया और धक्को की शुरुआत कर दी.. और इस बार चुदाई का दौर थोड़ा लम्बा चला और अब्बू ने लंड का पानी इस बार भी मेरी चूत में ही छोड़ा. उसके बाद अब्बू मुझे बाथरूम अपनी गोद मे उठा कर ले गए और वहाँ पर अब्बू ने अपना लंड मुझे चुसाया और अपने लंड के जूस से मेरा मुँह भर दिया. जब हम बाहर निकले तो मैं सीधा बेड पे पड़ गयी अब्बू काम पे निकल गए.

और फिर उनका प्यार हर रोज़ मेरी यही हालत करता. तो दोस्तो आपको मेरी ये स्टोरी कैसी लगी कमेंट करके ज़रूर बताना।
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#17
पार्ट 11

भाई जान और अब्बू से चुदी


हेलो दोस्तों मेरा नाम खुशबू है। आज मै अपनी चुदाई की सच्ची कहानी लेकर आपके लिए हाजिर हुई हूँ। ये कहानी मेरे अब्बू और भाई से हुई चुदाई की है। आज मै अपनी ज़िंदगी का सबसे बड़ा सच आपको बताने जा रहीं हूँ। तो अपने कमेंट ज़रूर कीजिएगा और बताइएगा क्या मैंने सही किया या गलत! तो चलिये अब अपनी कहानी शुरू करती हूँ।

Abbu aur Bhai se Chudai ki Kahani
मै 22 साल की एक खूबसूरत लड़की हूँ। मै ,., फॅमिली से बिलोंग करती हूँ। मेरी हाइट 5 फ़ीट 4 इंच है। रंग एकदम दूध की तरह सफ़ेद है और मेरा शरीर बहुत ही जालिम है। मेरा मेज़रमेंट 36-32-38 है। आप लोग खुद ही अंदाज़ा लगा सकते हो की मै क्या चीज़ हूँ। मेरे अब्बू का नाम आसिफ है और मेरे भाईजान का नाम आलिम है। अम्मी का इंतकाल हो चूका है। हमारे घर में सिर्फ हम ही 3 लोग ही रहते है। मै कॉलेज में पढ़ती हूँ और अब्बू और भाईजान दुकान चलाते है। मेरे कॉलेज में मेरे कई दीवाने है जो मेरी छाती और गांड के दीवाने है। सब मुझपर ही नजर गड़ाए बैठे रहते है। मै भी अपनी खूबसूरती और शारीरिक बनावट पर बहुत इतराती हूँ। मै कॉलेज अक्सर जीन्स एंड टॉप ही पहन कर जाती हूँ। जीन्स टाइट ही हुआ करता है जिससे मेरी गांड एकदम शेप में दिखती है। मुझे ऐसे ही लड़को और प्रोफेसरो को ललचाने में मजा आने लगा।

Abbu aur bhai se chudai krwai hindi kahani
इसी बीच मैंने एक अमीर शहज़ादे को अपने हुस्न के जाल में फंसा लिया। हम लगभग रोज कॉलेज बंक मार्कर कभी मॉल, तो कभी पार्क में जाते थे। वो मुझे वहां टच करता था और मै दिखावटी नाटक करके मना करती, पर मेरा भी मन करता था की वो मुझे टच करे। वो मेरे बूब्स दबाता, मुझे स्मूच करता, मेरी चूत को ऊपर से सहलाता पर हमने अभी तक सेक्स नहीं किया था। हम घंटो रात में फ़ोन पर बातें करते व्हाट्सप्प या फेसबुक पर। फ़ोन सेक्स भी करते इसी तरह बातें करते करते मै गरम हो जाती और अपनी चूत में ऊँगली करती। ऐसा कई दिनों तक चलता रहा। इधर मेरे घर में अम्मी के जाने के बाद अब्बू बिलकुल हताश से हो गए थे, मुझसे उनकी ऐसी हालत देखि नहीं जाती थी। Abbu aur Bhai se Chudai ki Kahani

एक दिन मै दिन में ही अपने बॉयफ्रेंड से सेक्स चैट कर रही थी। घर का मेन गेट खुला ही पड़ा था। मैंने ध्यान नहीं दिया था की अब्बू और भाईजान दुकान के जा चुके है। मै अपनी मस्ती में अपने बॉयफ्रेंड से सेक्सी बाते कर रही थी। मै पुरे मूड में थी और बाते करते करते मै बहुत गरम हो गई थी। मैंने अपना टॉप उतर दिया था और साथ ही साथ पैंटी को घुटनो तक कर दिया था। मैंने उस समय ब्लैक पैंटी एंड ब्लैक ब्रा पहनी थी। मै हमेशा G स्ट्रिंग पैंटी ही पहनती थी। मै अपने होश खोकर बेफिकर होकर चूत में ऊँगली और अपने बूब्स को ब्रा के ऊपर से दबा रही थी। मै एकदम होश में नहीं थी। तभी किसी कारण से अब्बू और भाईजान को दुकान बंद करनी पड़ी, शायद किसी सिक्योरिटी की रीज़न से। तो वो दोनों घर वापस आ गए। उन्होने देखा की घर का दरवाज़ा खुला है तो वो लोग बिना डोर बेल बजाये अंदर आ गए और मुझे पता ही नहीं चला। सबसे पहले मेरा रूम आता है, जिसे भी घर पर अपने रूम में जाना हो वो मेरे रूम के सामने से ही होकर जा सकता है।

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मेरे रूम का दरवाज़ा खुला था और मै आह आहहह ऊहह कर रही थी और चूत और बूब्स दबा रही थी। अब्बू और भाई मेरी आवाज़ सुनकर वही रुक गए और मेरे रूम के दरवाज़े के पास पहुँच गए। मै इन सब से अनजान अपनी मस्ती में थी। मुझे इस तरह सेमि न्यूड हालत में देखकर दोनों चकरा गए और एक दूसरे को देखने लगे। वो दोनों धीरे से अंदर आ गए और मेरे करीब आकर खड़े हो गए। मै उस समय दूसरी तरफ मुँह किये हुए थी। कुछ देर बाद मैंने करवट बदली तो मै घबरा गई। ये क्या मैंने देखा अब्बू और भाई मेरे सामने खड़े है। उनको देखकर मैंने तुरंत अपनी जीन्स को जैसे तैसे ऊपर चढ़ाया और अपनी टॉप खोजने लगी। मेरी टॉप तो जमीन पर पड़ी है, शायद मैंने ही जोश में आकर फेंका होगा। मै सिर्फ ब्रा में रह गई। मै शर्म से नज़रे झुका के बैठी थी। Abbu aur Bhai se Chudai ki Kahani

अब्बू- ये क्या कर रही थी बेटा? बताओ न खुशबू?

भाईजान अपना हाथ अपनी पैंट के ऊपर सहलाने लगा और मुझे देखकर हंसने लगा और बोला।।

भाई – तभी मै सोचु की इसकी चूचि और गांड इतनी भारी क्यों है। ये रोज बाहर जाकर चुदवाती है साली छिनाल।

मै – नहीं मै ऐसी नहीं हूँ मैंने कभी सेक्स नहीं किया! अब्बू प्लीज मेरा भरोसा करो।

अब्बू – अच्छा ठीक है बेटी मुझे तुझपर यकीन है! अच्छा अभी तुम क्या कर रही थी बताओ न बेटा।

मै – जी अब्बू मै अपने बॉयफ्रेंड से बात कर रही थी।

अब्बू – कबसे चल रहा है ये सब बेटा?

मै – पिछले 6 महीनो से, लेकिन अब्बू बस हमने बाते की है कोई गलत काम नहीं किया।

अब्बू – कैसा गलत काम बेटी बताओ न खुल कर अपने अब्बू से क्या शरमाना।

मै – जी अब्बू वो हमने सेक्स नहीं किया कभी।

Abbu aur Bhai se Chudai ki Kahani
इसी बीच भाई बोला – मै नहीं मानता की इसने सेक्स नहीं किया होगा! साली की गांड तो देखो अब्बू! लगता है कितने ही लौडो से एक साथ चुद चुकी है। ये तो साली पूरी रंडी हो गई है अब्बू आप इसकी बात मत मानो। ये सब झूट बोल रही है।

मै – सच में अब्बू मै सच कह रही हूँ मैंने कभी सेक्स नहीं किया आप मेरा यकीन करो प्लीज।

अब्बू – अच्छा ठीक है मुझे तुमपर यकीन है कि तुम कोई गलत काम नहीं की होगी! पर क्या तुम्हारा मन करता है ये सब करने का?


अब मै भी थोड़ी थोड़ी खुल कर बोलने लगी थी।

मै – अब्बू करता है बहुत मन करता है पर मै आपकी इज़्ज़त को उछालना नहीं चाहती! इसलिए मैंने कोई गलत काम कभी नहीं किया।

अब्बू – बेटा ये गलत काम थोड़ी ना होता है ये तो जरुरत है।

मै – अगर जरुरत है तो अब्बू आप कैसे पूरी करते ही अब तो अम्मी भी नहीं है।

अब्बू – हाँ बेटा तेरी अम्मी के जाने के बाद मै तड़प गया हूँ! क्या तुम मेरे साथ करोगी और अपने भाई के साथ?

मै – पर अब्बू ये गलत है मै आपकी बेटी और भाई की बहन हूँ। ये कैसे हो सकता है अगर किसी को पता चला तो हमारी बहुत बदनामी होगी।

भाई – कुछ नहीं होगा रंडी बहना कौन बोलेगा। हम तीन ही तो घर पर है रोज मजे करेंगे क्यों अब्बू।

अब्बू – हाँ बेटा सही कहा तुमने खुशबू ज्यादा मत सोचो ये सब तो करना ही चाहिए नहीं तो ज़िन्दगी में क्या मजा।

मै – पर अब्बू और भाई मुझे बहुत शरम आ रही है, मै कैसे हाँ कहूँ।

अब्बू – तुमने मना नहीं किया बेटी इसका मतलब तुम करना चाहती हो बस बोल नहीं पा रही हो! सही कहा ना मैंने?

मै – हाँ अब्बू आपने सही कहा! हाँ अब मुझे दुनिया की कोई चिंता नहीं! मै बस मजा लेना चाहती हूँ आपसे और भाईजान से।

अब्बू – शाबाश मेरी रंडी बेटी ये हुई ना बात!

भाई – अब्बू अब तो अपने घर पर ही मजे हो गए इतने दिनों से इसपर ध्यान ही नहीं गया था हमारा।

अब्बू – अब तो ये बाप और भाई की रंडी बनेगी।

Abbu aur bhai ne choda hindi kahani
अब्बू ने कहा और मेरे पास आकर दोनों बैठ गए। मै बीच में थी एक साइड अब्बू और दूसरी साइड भाई बैठा था। दोनों अपने अपने हाथ से मेरी जांघों को सहला रहे थे। उन लोगो ने मेरे हाथ को ले जाकर अपने अपने लंड पैंट के ऊपर से सहलाने को दिए। मै हल्का हल्का दोनों का लंड छू रही थी और दबा रही थी। फिर अब्बू ने अपना दूसरा हाथ मेरी पीठ पर ले जाकर मेरी ब्रा के हुक को खोल दिया। फिर अब्बू ने अपना एक हाथ पीछे ले जाकर मेरी ब्रा के हुक को खोल दिया। जिससे मेरी ब्रा लूस हो गई और वो आगे से गिरने लगी। ये देख भाई ने मेरी ब्रा को जाकर पकड़ लिया और उसे मेरे बदन से अलग कर दिया और उसने वो ब्रा फेंकने के बजाये अपनी गर्दन में लपेट ली। अब मै ऊपर से पूरी नंगी थी ऐसा मेरे साथ बचपन के बाद आज पहली बार था की में अपने बाप और भाई के सामने अपनी चूचि लटकाये बेशरम रंडी की तरह उनके लंडों को एक एक हाथ से पैंट के ऊपर से सहला रही थी।

फिर अब्बू ने अपनी पैंट की हुक खोल दी जिससे उनकी पैंट सरसरा कर ज़मीन पर गिर गयी। ये देख भाई ने भी अपनी जीन्स उतार दी। अब वो दोनों सिर्फ अंडरवियर में रह गए। फिर उन लोगो ने बिना देर किये अपने अंडरवियर को भी उतार दिया अब वो दोनों बिलकुल नंगे मेरे सामने खड़े थे। उन लोगो को जरा भी शर्म नहीं आ रही थी पर मुझे थोड़ी थोड़ी आ रही थी। उन लोगो के लंड देख कर मै डर गई। मैंने सिर्फ फिल्मो में ही लंड देखे थे असल ज़िन्दगी में ये पहला अनुभव था। फिर अब्बू ने मुझे अपना लंड पकड़ा दिया और भाई ने भी। मै उन दोनों के लंड के बीच में बैठी थी और उनको मुठिया रही थी। उनके लंड मेरे हाथ में फूलने लगे फिर अब्बू ने मुझे अपना लंड चूसने को बोला। मै भी लंड चूसना चाहती थी कितनी बार फिल्मो में देखा था मैंने, सो मैंने तुरंत अब्बू का लंड मुँह में ले लिया और उसे चूसने लगी। ये देख भाई ने भी अपना लंड चूसने को बोला। Abbu aur Bhai se Chudai ki Kahani

मैंने बारी बारी से दोनों के लंड चूसे। दोनों अपनी सीमा तक पहुँच गए थे उनका लंड पूरा लोहे की रोड की तरह टाइट हो गया था, उनके लंड की नसे भी पूरी उभर आई थी। फिर उन लोगो ने मुझे उठाया और मेरी जीन्स उतार दी। अब मै सिर्फ जी-स्ट्रिंग पैंटी में आ गई। मै हमेशा ऐसी ही पैंटी पहनती हूँ इसमें गांड पूरी खुली रहती है बस चूत के पास का हिस्सा ढका होता है। वो दोनों मेरी पैंटी देखकर बहुत खुश हो गए और अब्बू बोले।

अब्बू और भाई ने सील तोड़ी
अब्बू – वाह रे मेरी रंडी बेटी क्या पैंटी है तेरी एक दम मस्त रंडी लग रही है! जी नहीं चाहता की तेरे बदन पर से ये पैंटी उतारू पर तेरी चुदाई जो करनी है सो उतारना ही पड़ेगा! लेकिन इससे पहले तेरे इस अवतार को कैमरा में रिकॉर्ड कर लेता हूँ।

ये कहकर अब्बू और भाई ने मेरी कुछ सेक्सी पिक्स ली। फिर उन लोगो ने मेरी पैंटी को भी उतार दिया और मुझे जन्मजात नंगी कर दिया। फिर मुझे बेड पर पटक दिया और पैरो को फैला दिया। जिससे मेरी चूत उनके सामने बेपर्दा हो गई और वो दोनों आँख फाड़ फाड़कर देखने लगे।

अब्बू – वाह मेरी रंडी बेटी क्या चूत है तेरी! आज मै और तेरा भाई तेरी ओपनिंग करेंगे और लास्ट तक नॉट आउट रहेंगे। तू मेरी बेटी है पर आज मै तुझे तेरा भाई या बहन गिफ्ट करूंगा! क्यों सही है ना?

भाई बोला – हाँ अब्बू इसकी खुजली मिटानी होगी कितनी बार अपना मुठ बर्बाद किया है बाथरूम में, जो इस रंडी के हक़ का था। आज मेरे लंड का एक एक बूँद इसकी चूत भरेगा।

ये कहकर दोनों एक साथ मेरी चूत चाटने लगे। मै तड़प रही थी जैसे बिन पानी के मछ्ली।

आह्ह्ह्हह आह्हह्ह्ह्ह आहह्ह्ह्हूँगा आहह्ह्हह्हू सीईईईईई और मै इसी तरह सिसकारियाँ भरने लगी और इसी के साथ मै झड़ गई।

अब्बू और भाई ने मेरा एक भी बूँद बर्बाद नहीं जाने दिया और पूरा पी लिया और अपने हाथो को मेरो होठो से चटवाया। मैंने ज़िन्दगी में पहली बार अपने रस को टेस्ट किया। फिर आ गई वो घड़ी जिसका मुझे पिछले कई सालो से इंतज़ार था। मेरी चुदाई की बेला आ गई थी और मै अपनी पहली चुदाई के लिए बिलकुल तैयार हो रखी थी। और ये सुनहरा मौका मेरे अब्बू को ही मिलना चाइये आखिर उन्होने ने ही मुझे इस रंगीन दुनिआ में लाया है। फिर अब्बू ने अपना लंड मेरे चूत पर टिकाया और भाई ने मेरी टांगो को पकड़ लिया। फिर अब्बू ने एक हल्का सा धक्का दिया। मुझे मीठा मीठा दर्द हुआ और लंड का सुपाड़ा मेरी चूत में चला गया। मुझे हल्का सा दर्द हुआ फिर अब्बू ने भाई को मेरे मुँह में अपना लंड डालने को बोला। मै नहीं समझ पाई की ऐसा क्यों किया उन्होने पर मैंने लंड मुँह में ले लिया। Abbu aur Bhai se Chudai ki Kahani

अब्बू और भाई ने चोदा कहानी
फिर अब्बू ने एक जोरदार धक्का मारा जिससे पूरा बेड हिल गया। मेरी चूत एक दम साइलेंस हो गई ऐसा लगा की किसी ने मेरे कान पर कोई बम फोड़ दिया हो। एक दम सन्नाटा। मेरी जोरदार चीख निकलती अगर भाई का लंड मेरे मुँह में ना होता। तो अब मुझे ये समझ आया की अब्बू ने भाई को अपना लंड मेरे मुँह में डालने को क्यों बोला था। अब्बू कुछ पल के लिए रुक गए फिर उन्होने धक्के मारने शुरू किये। मेरी चूत से खून निकल रहा था ये मेरे कुंआरेपन के टूटने का सबूत था। अब मै अपनी चुदाई को एन्जॉय कर रही थी। मै दो बार आलरेडी झड़ चुकी थी पर अब्बू अभी भी कायम थे और मुझे रंडी कुतिया की तरह चोद रहे थे। इधर भाई मेरे शरीर से खेल रहा था, कभी निप्पल चूसता, कभी दबाता। उसका लंड चूस चूस कर मैंने एकदम लाल कर दिया था। Abbu aur Bhai se Chudai ki Kahani

फिर वो वहां से उठने लगा तो मैंने पूछा आप कहाँ जा रहे हो? तो बोला पेशाब करने जा रहा हूँ मेरी जान! फिर अब्बू ने क्या इशारा किया भाई को मेंमै नहीं समझ पाई। लेकिन भाई ने जाना कैंसिल कर दिया और वापस अपना लंड मेरे मुँह के पास ले आया। मै फिर से चूसने लगी। इधर अब्बू मेरी ताबडतोड़ चुदाई जारी रखे थे उसी बीच भाई ने अपना पेशाब मेरे मुँह में करना शुरू कर दिया। मुझे ये बड़ा अजीब लगा पर मुझे मज़बूरी में सारा पेशाब पीना पड़ा। इसके चलते मेरे गले में बहुत जलन हो रही थी। पर मेरी किसी को परवाह नहीं थी इसी बीच मैंने देखा अब्बू का लंड अकड़ने लगा है। शायद वो झड़ने वाले थे और वो एक जोरदार चीख मारके झड़ गए और सारा माल मेरी बच्चेदानी में डाल दिया।

Papa ne seal todi hindi kahani
फिर वो मेरे ऊपर से उतर गए और अपना लंड निकाल लिया। मैंने देखा की मेरी चूत से बहुत सारा पानी बह रहा है जो शायद अब्बू और मेरे दोनों का ही होगा। फिर अब्बू वहां से हट गए और उनकी जगह मेरे भाई ने ले ली फिर उसने भी मेरी ऐसी ही जोरदार चुदाई करके अपना सारा पानी मेरी चूत में डाल दिया। फिर अब्बू नीचे लेट गए और मुझे अपने लंड पर बैठने को बोला। मुझे लगा की मेरी चूत मरेंगे लेकिन उन्होने अपना लंड मेरी गांड में डाल दिया। मै अपने पूरे वेट से बैठी थी इसलिए पूरा लंड एकदम से मेरी गांड में समां गया। मै लगभग रो दी लेकिन आज कोई आराम नहीं था। अब्बू मेरी गांड मार रहे थे और भाई मेरी चूत में ऊँगली कर रहा था। इसी बीच ऊँगली करने से मै फिर से झड़ गई। फिर अब्बू ने भाई को कुछ इशारा किया और भाई मुझे हलका धक्का देकर खुद मेरे ऊपर चढ़ गया और अपना लंड मेरी चूत में डाल दिया। Abbu aur Bhai se Chudai ki Kahani

मेरी दोनी तरफ से चुदाई होने लगी मै जन्नत जैसा महसूस कर रही थी। और इसी तरह उन दोनों ने सारे दिन और सारी रात मेरी जमकर चुदाई की और मुझे एक बाजारू रंडी बना के रख दिया। मै बाज़ारू रंडी तब बनी जब अब्बू और भाई ने मुझे चोदने के बाद 1000 रूपए दिए। मुझे कुछ समझ नहीं आया ये पैसे किसलिए है पर मैंने रख लिए। शायद वो लोग खुश होकर दिए थे।

अब वो लोग मेरी रोज बजाते है और मुझे प्रोफेशनल रंडी बना दिया है क्योकि उन लोगो ने अपने कई इम्पोर्टेन्ट क्लाइंट्स को भी मेरे पास भेजा है सेवा के लिए। ये सब बाद मै फिर कभी बताउंगी की कैसे मै एक प्रोफेशनल रंडी बनी। आप अगर ,., लड़की हो तो पता होगा की घर वाले कहते है की हिन्दुओ से दूर रहो पर अब रंडी बनाने के बाद अब्बू के सब हिन्दु दोस्त और भाई जान के भी सब मुझको आकर घर मे हि चोद कर पैसा देकर जाते है ,
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#18
पार्ट 12

अब्बू और उनके दोस्त से चुदी

हैलो दोस्तों मै जीशान आपके लिए एक और हॉट सेक्स स्टोरी लेकर आया हूँ। ये कहानी बाप बेटी की चुदाई की कहानी है। कैसे एक बाप ने अपनी बेटी को चोदा और उसको माँ बना दिया। चलिये शुरू करते है!

आफरीन (करीब 20-21 साल की होगी), हाइट 5 फ़ीट 6 इंच, रंग दूध जैसा गोरा, पतली कमर और गांड बाहर निकली हुई, बूब्स बिलकुल कप की शेप में और थोड़े ढीले वाले. कुल मिलाकर पूरी चोदने लायक माल थी। पढाई में तो ठीक ठाक थी. लेकिन डांस करने का बड़ा ही शोक था.. (आखिर होता भी क्यों न उसकी अम्मी सफरीन फाइनल में जा चुकी थी. लेकिन जैसे ऊपर ने उसपे अपनी रेहमत न दिखाई हो और वह जीतते जीतते रह गयी..)।

तारिक (आफरीन का सौतेला अब्बू) उसको इन सब में कहाँ कुछ पल्ले पड़ता। वो तो बस अपने छोटे से बिसनेस में ही खुश था. (जब आफरीन पैदा हुई थी उसी की ख़ुशी ख़ुशी में ज़फर यानि आफ़रीन का सगा अब्बू को हार्ट अटैक आया और चल बसा). जिसके बाद तारिक का निकाह सफरीन से कर दिया। तारिक के अपने 6 बच्चे हुए और सारे लड़के। आफरीन सौतेली थी। लेकिन फिर भी उसने उसे अपनी बेटी जैसा ही प्यार किया और करे भी क्यों आखिर सबमे वही तो बड़ी थी …(ये था इंट्रो अब हम सीधा आते है कहानी पे..)।baap beti sexstory hindi

Baap beti ki chudai ki kahani sexstory
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संडे का दिन था सफरीन सभी बच्चो को लेकर बाजार चली गयी. क्युकी ईद आने वाली थी और सभी को नए कपडे चाहिए थे लेकिन आफरीन नहीं गयी। क्युकी उसे डांस कम्पटीशन जीतना था अपने कॉलेज की तरफ से इसलिए वो कमरे में अकेले गाना पे डांस प्रैक्टिस किये जा रही थी. गानो का शोर जब ज्यादा हो गया तो तारिक आफरीन के कमरे में चला आया। लेकिन वहाँ जाके देखा तो आफरीन कमरे में बैठे बैठे रो रही है। जाते ही तारिक ने आफरीन को अपनी बाहों में भरते हुए कहा.

तारिक – क्या हुआ मेरी प्यारी आफरीन को?

आफरीन – वो कल डांस कम्पटीशन है और मुझसे डांस नही हो रहा है.

तारिक – (आफरीन की पीठ पर हाथ से सहलाते हुए..) तो ऐसे टेंशन नहीं लेते! मैं हूँ ना! तुझे हेल्प करूँगा डांस करने में.

आफरीन – सच्ची अब्बू..?

तारिक – सच में और तू कम्पटीशन भी जरूर जीतेगी.

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कम्पटीशन जीतने की बात सुनकर आफरीन इतनी खुश हुई इतनी खुश हुई कि ख़ुशी ख़ुशी मे आफरीन ने तारिक को गालो पे किस करने की बजाय उसके होंठों को चुम लिया. एक पल तो तारिक को भी समझ नहीं आया की ये आफरीन ने क्या किया! लेकिन तारिक के अंदर से एक आग जलनी शुरू हो गयी. जैसे ही आफरीन चूम कर अलग हुई तारिक फिर से उसको पकड़ कर आफरीन के होंठो को चूमने लगा. आफरीन की ख़ुशी का भी कोई ठिकाना नहीं था. दोनों खड़े हुए और डांस पोज़ में खड़े हो गए तभी आफरीन बोली. baap beti sexstory hindi

आफ़रीन – अब्बू मेरे कपड़े बहुत टाइट है इन कपड़ो में तो दम घुटरा है!

तारिक – कोई और कपडे नहीं है क्या?

आफ़रीन – अभी तो नहीं है, तो अब क्या करू? एक काम करूँ इन कपड़ों को उतार दूँ?

तारिक – हाँ! ये सही रहेगा, तब और अच्छे से डांस भी होगा!

आफरीन ने दूसरे ही पल में अपने कपडे उतार दिए और तारिक के सामने सफ़ेद ब्रा और सफ़ेद पैंटी मे खड़ी हो गयी. तारिक कुछ कहता उससे पहले ही आफरीन तारिक के बिलकुल पास आ कर दोबारा उसे डांस पोज़ में खड़ा करने लगी. लेकिन तभी आफरीन की नज़र तारिक के खड़े लंड पर गयी जिसे देख कर आफरीन का दिमाग खराब हो गया. लेकिन जैसे तैसे उसने खुद को संभाला और फिर खुद तारिक की दूसरी तरफ मुंह करके बिलकुल चिपक गयी.

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तारिक का खड़ा लंड आफरीन की गांड के बिलकुल बीचो बीच आकर लगा. आफरीन का तो पता नहीं लेकिन तारिक के अंदर ही आग भड़कती जा रही थी. लेकिन इससे आफरीन को डांस करने में काफी दिक्कत हो रही थी तो उसने तारिक को बोला

आफ़रीन – अब्बू पहले अपने पेनिस को शांत करो तभी तो डांस कर पाएंगे।

तारिक – क्या पेंसिल शांत करो?

आफ़रीन – पेंसिल नहीं अब्बू पेनिस तुम्हारा लंड बिठाओ।

तारिक – अरे आफरीन तेरी अम्मी होती तो शांत कर लेता! लेकिन हो नही रहा! देख ले अब तू कुछ कर सके तो?


तारिक की बात सुनकर आफरीन वही नीचे बैठी और तारिक की पजामी का नाडा खोल कर नीचे गिराया! देखा तो लंड काफी मोटा और काला था जिसे आफ़रीन अपने हांथो में भर कर हिलाने लगी. baap beti sexstory hindi

तारिक – आफरीन जोर जोर से हिला ना तभी तो जल्दी बैठेगा!

आफरीन जोर जोर से लंड हिलाये जा रही लेकिन लंड है की बैठने का नाम ही नहीं ले रहा और आखिर में आफ़रीन थक कर हार गयी.

आफ़रीन – अब्बू ऐसा लगता है मैंने और जोर से हिलाया तो चिंगारी निकलने लगेगी।

तारिक – एक काम कर इससे मुँह में लेकर थोड़ा ठंडा कर फिर दोबारा हिलाना चालु कर दियो।

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तारिक ने जैसा आफरीन को कहा उसने ठीक वैसा ही किया। वह बिलकुल लोलीपोप की तरह लंड को चूसे जा रही थी. वही तारिक ने भी आफरीन का मुँह पकड़ कर अपनी तरफ से भी जोर जोर से आफरीन के मुँह में लंड पेले जा रहा है. लेकिन लंड से वीर्य का एक कतरा तक नही निकला. baap beti sexstory hindi

आफ़रीन – या अल्लाह ये अब्बू का लंड है या घोड़े का निकलता ही नही।

तारिक ने लंड मुँह से निकाला और आफरीन को खड़ा किया और अपने पास कर उसके होंठो को चूमने लगा. नीचे आफरीन तारिक का लंड हिलाये जा रही थी और तारिक आफरीन के बूब्स को दबाये जा रहा था।

तारिक – आफरीन तू ये जान बुझ कर क्यों कर रही है?

आफ़रीन – अब्बू तुमने ही तो शुरुआत करी थी!

तारिक – कब?

आफ़रीन – सर्दी की पहली रात जब मै आपके साथ सोई थी मेरे सोने के बाद आपको लगा की मैं सो गयी हूँ!

तारिक – तू जागी थी क्या?

आफ़रीन – सो तो गयी थी लेकिन जब तुम मेरी पैंटी उतार कर मेरी चूत के होंठो पे अपनी उगली रगड़ने लगे तो मेरी नींद खुल गयी थी लेकिन कुछ बोल न सकी।

तारिक – तो आज कैसे हिम्मत जाग गयी तुझ में?

आफ़रीन – उस रात तक मुझे लगता था तुम मेरे अब्बू हो लेकिन उसके बाद पता चला की तुम तो मेरे सौतेले अब्बू हो।

बातों बातों मे तारिक ने आफरीन को बेड की तरफ झुका दिया और उसकी गांड सूंघता हुआ उसकी पैंटी को हटा कर उसकी चूत में लंड घुसा दिया। और आफरीन की ब्रा पकड़ कर फुल स्पीड मे धक्के लगाना शुरू कर दिया. आफ़रीन के मुंह से एक लंबी चीख निकली!!

आफ़रीन – अहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहह.. आहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहह.. अहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहहह।
मर गयी!!! अब्बू बाहर निकालो इसे!!!! ऊई माँ मेरी चूत फट गयी है!!!

बाप ने बेटी को चोदा हिन्दी कहानी
गाना अभी भी हाई वॉल्यूम में बज रहा था और तारिक और आफरीन दोनों चुदाई करे जा रहे थे. चुदाई की शुरुआत में तारिक ने आफरीन के मुँह में पैंटी घुसा दी थी जिससे उसकी आवाज़ बाहर ना निकाल सके. लेकिन बाद में जब आफरीन का दर्द कुछ कम हुआ तो पैंटी भी निकाल दी. और अब तो जोर जोर से धक्के मार मारके आफरीन तारिक से चुदाई का मज़ा लिए जा रही थी. baap beti sexstory hindi

तारिक – आफ़रीन एक बात बता..?

आफ़रीन – हाँ बोलो!

तारिक – आज के बाद से मुझे क्या बोलेगी?? अब्बू या अपने बच्चो के अब्बू?

आफ़रीन – अब्बू देखो तुम्हारे हाथ जोड़ती हूँ अभी मेरी चूत मे अपना माल मत छोड़ना!

तारिक – देख यार आफरीन मुझे अपना वीर्य बहार छोड़ने में मजा नहीं आता है!

आफ़रीन – वो मै समझती हूँ लेकिन मेरी भी मज़बूरी तो समझो अभी तुमने मुझे प्रेग्नेंट कर दिया तो मेरे लौड़े लग जाएंगे!

तारिक – बस एक बार! बस एक बार!

आफ़रीन – अब्बू नहीं यार मै अपनी जबान देती हूँ मेरे पेट में पहले पहले तेरा ही बीज लुंगी और किसी का नहीं लेकिन अभी नहीं! प्लीज मान जाओ!

तारिक – अरे मैं तो मज़ाक कर रहा था तू टेंशन मत ले !

तारिक का वीर्य निकलने ही वाला था उससे पहले ही उसने लंड निकाला और आफरीन की गांड के ऊपर ही सारा का सारा माल निकाल कर छोड़ दिया। फिर उसने बगल में पड़ी आफरीन की पैंटी उठाई और अपने लंड को साफ़ करके फिर उसकी गांड भी साफ़ करके वही बीएड पे सो गया।

आफ़रीन लंड को शांत होते होते देखे जा रही थी. तभी उसने लंड पे एक किस किया और अपनी पैंटी पहन कर अब्बू को भी पजामा पहना कर कमरे से बहार भेज कर डांस कम्पटीशन की तयारी में लग गयी
उसके बाद अब्बू के दोस्त रितेश अंकल भी मुझको चोदने अब्बू खुद मुझसे कहे थे रितेश अंकल से चुदने के लिए।।
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#19
पार्ट 13

अब्बू का लैंड लेने का सपना पुरा हुआ


अब्बू से चुदने का ख्वाब सच हुआ

Abbu se chudai ki kahani:- दोस्तों मेरा नाम जीशान खान है! आज जो स्टोरी मै आपके लिए लेकर आया हूँ वो एक जबर्दस्त सेक्सी इनसेस्ट सेक्स स्टोरी है। ये स्टोरी एक बाप और बेटी की एक दूसरे के लिए कामुक भावनाओं को लेकर है। ये बाप बेटी की चुदाई कहानी कई पार्ट मे होगी इसलिए हमारे साथ जुड़े रहें और पूरी कहानी का मज़ा लें। तो चलिये कहानी स्टार्ट करते है।

Abbu se chudai ke khwab ki kahani
Abbu se chudai ki kahani
यूसुफ़ का ये ख्वाब पीछा नहीं छोड़ रहा था. बड़ा सा कमरा है. यूसुफ़ एक कमरे से दूसरे कमरे में कुछ तलाश कर रहा है. तभी एक कमरे में से कुछ आवाज़ सुनाई देती है. वो कमरे की तरफ बढ़ता है. दरवाज़े पर एक सफ़ेद पर्दा है जो की कुछ हटा हुआ है. यूसुफ़ का दिल धक धक करने लगता है जब उसकी नज़र कमरे में पड़ती है. कमरे में पलंग पर एक नंगी औरत लेटी हुई है. गोरी चिट्टी, बड़े बड़े चूचे, फैली हुई जांघें, बिना बालों के चमकती हुई चूत, चेहरा काले बालों से ढका हुआ. उस औरत का एक हाथ उसकी चूत से खेल रहा था और उसके हाथ की दो उँगलियाँ उसकी चूत में घुसी हुई थी और वो अपनी चूत को उंगलिओं से ज़ोर ज़ोर से चोद रही थी जैसे की उसकी चुदाई कई सदियों से ना हुई हो। युसुफ का लंड ये देखकर खड़ा हो जाता है जैसे की उसकी आज सुहागरात हो. Abbu se chudai ki kahani

वो आगे बढ़ता है और अपनी चूत को अपनी उँगलियों चोद रही औरत की जांघों पर हाथ रख देता है. वह औरत कुछ बुदबुदा रही है. अचानक वो अपने आप को झटका देती है और उसके काले बाल उसके चेहरे से हट जाते हैं.

“ओह्ह्ह्ह अब्बा आप? आप यहाँ क्या कर रहे हैं?”

वो औरत और कोई नहीं सायरा निकली, युसुफ की अपनी बेटी सायरा. तभी यूसुफ़ की आँख खुल जाती है. उसका जिस्म पसीने पसीने हो चूका है. लंड किसी खम्बे के माफिक खड़ा है. तभी उसको ख्वाब में सायरा के बड बड़ाने के शब्द याद आ जाते हैं. ख्वाब में वो बोल रही थी! “अब्बा अब डाल दो अपना लंड अपनी बेटी की चूत में. आज मुझे चोदकर मुझे अपनी बीवी बनो लो अब्बू! मुझे अम्मी की जगह दे दो अब्बू!!!!”

Abbu ne choda hindi kahani
युसुफ(मन मे सोचते हुए) – या अल्लाह ये क्या हो रहा है मेरे साथ? अल्लाह क्यों मुझे ऐसे ख्वाब दिखा रहा है? क्यों मुझे शैतानी ख्वाब दिखा रहा है क्यों दोज़ख मे धकेल रहा है अल्लाह?

लेकिन वो चाहे जितनी भी कोशिश क्यों न करे उसका लंड बैठने का नाम नहीं ले रहा था. उसने लंड को पकड़ रखा था और सोच रहा था की क्या किया जाये. तभी उसकी बीवी नसीम जाग उठी और अपने खाविंद का तना हुआ लंड देख कर मुस्कुरायी.

नसीम – ये क्या जी अब आप आधी रात को भी मुझे सोने नहीं दोगे क्या? इस उम्र में तो संभल जाओ. अब तो सायरा की भी शादी हो चुकी है और आप अभी जवान लड़के बने हुए हैं. चलो अब लंड महाराज खड़े हो ही गए हैं तो इनका कोई इलाज तो करना ही पड़ेगा. लाओ इसको मेरे हाथ में दे दो. मैं जानती हूँ की ये लंड क्या मांगता है इस वक्त।

नसीम ने लंड पकड़ कर उस पर हाथ फेरा और फिर चूम लिया. यूसुफ़ और नसीम की उम्र 45 और 41 साल की थी और नसीम उसके चाचा की बेटी थी जिस से उसका निकाह आज से 22 साल पहले हुआ था. नसीम निकाह से पहले यूसुफ़ को “भाईजान” कह कर बुलाती थी और आज भी अगर वो ज़्यादा चुदासी हो जाती तो उसको “भाईजान” कह कर ही बुलाती.

युसुफ – तो फिर एक राउंड हो जाये बहना. मेरे लंड की भी अकड़न मिट जायेगी और मेरी बहना की चूत की खुजली मिट जाएगी. चल उतार अपनी सलवार और कर ले टाँगें चौड़ी और खोल दे अपनी चूत के दरवाज़े। Abbu se chudai ki kahani

नसीम तो पहले ही नाडा खोल चुकी थी. यूसुफ़ ने लंड को नसीम की चूत पर रखा और गांड उछाल दी और यूसुफ़ अपनी बीवी पर चढ़कर धक्के पे धक्का मारने लगा.

नसीम चिल्लाई आराम से चोदो अपनी बहना को. मार ही डालोगे क्या बहनचोद?

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लेकिन यूसुफ़ को महसूस हो रहा था की उसके नीचे नसीम नहीं बलकी उसकी बेटी सायरा पड़ी हो और वो उससे कह रही हो.. अब्बू चोद डालो अपनी बेटी को. चोदो अपनी प्यारी बेटी को मेरे प्यारे अब्बू!!! यूसुफ़ का लंड इतना तन चूका था जितना कभी जवानी में तन जाता था. वो अपनी बीवी को बेरहमी से चोदने लगा. नसीम जो की चौड़ी गांड वाली भरी चूचि वाली गोरी औरत थी नीचे से चूतड़ उठा कर जवाब देती हुई बोली..

नसीम – भाई जान आज आप को क्या हो गया है? आपने क्या खाया है जो किसी जानवर की तरह चोद रहे हो. किस रंडी का ख्वाब देख कर इतना जोश आया हुआ है भाईजान? जो अपनी बहन की चूत का कचूमर निकाल रहे हो? हाय मेरी चूत झड़ने वाली है!! मार डाला आपने मुझे हाय!! अल्लाहहहहहहहहहहहहहहहहहहहह…उफ़्फ़फफफफफफफफफ, मर गयी मैं तो!!

लेकिन यूसुफ़ ने तो ऑंखें बंद की हुई थी और वो मन ही मन अपनी बेटी सायरा को चोद रहा था लो मेरा लंड बेटी ले लो अब्बू का लंड मेरी बेटी. तेरा अब्बू भी झड़ने वाला है बेटी. चोद ले अपने अब्बू को!!

यूसुफ़ ने हाँफते हुए कहा और वो नसीम की चूत में झड़ गया. पहले तो नसीम ने कोई ध्यान नहीं दिया लेकिन झड़ने के बाद बोली”

नसीम – ये क्या बक रहे थे “बेटी”? ये बेटी कौन है? लगता है तुम चढ़े मुझ पर हुए थे लेकिन चोद किसी और को रहे थे!!

यूसुफ़ एक दम सकते में आ गया और बोला..

युसुफ – बेग़ुम कुछ नहीं. तुम चोदते वक्त मुझे भाईजान बोलती हो तो मैंने सोचा क्यों न अपनी बेगम को बेटी कह कर पुकारूँ. लेकिन क्या चोदती हो तुम जब मैं तुझे बेटी कहता हूँ।


नसीम अजीब नज़रों से अपने शौहर को देख कर बोली..

नसीम – कोई तो बात है पहले तो मुझे बहना बुलाते थे आज बेटी बुला रहे हो. चलो कोई बात नहीं चोदते तो मुझे ही हो ना।

अब्बू ने बेटी को चोदा हिन्दी कहानी
यूसुफ़ चुप हो गया. पूरी चुदाई के बाद भी उसका लंड बैठ नहीं रहा था. सायरा का नंगा जिस्म उसकी आँखों के सामने था. साथ वाले कमरे में सायरा का भी कुछ यही हाल था. जिस वक्त यूसुफ़ ख्वाब देख रहा था उसी वक्त सायरा अपने बिस्तर में सो रही थी. उसका पति साजिद जो की उसके अब्बू के घर में ही रहता था अपने अब्बू अम्मी के घर गया हुआ था और सायरा अकेली थी. लंड न होने की वजह से सायरा अकेली ही कपडे उतार कर बिस्तर में सो रही थी. तभी उसने एक ख्वाब देखा की वो एक सुनसान हवेली में अकेली है बिलकुल नंगी है और उसके हाथ बिस्तर से किसी रस्सी से बंधे हुए हैं. कमरे में अँधेरा है. तभी दरवाज़ा खुलता है और कोई मर्द कमरे में दाखिल होता है. मर्द हट्टा कट्टा है और नंगा है. उसकी पीठ दरवाज़े की तरफ और चेहरा सायरा की तरफ है लेकिन रौशनी कम होने की वजह से चेहरा साफ़ दिखाई नहीं पड़ रहा था। Abbu se chudai ki kahani

वो मर्द नज़दीक आ कर उसकी जांघों से खेलने लगता है. उसकी चूत को सहलाने लगता है. लेकिन डरने की बजाये सायरा उत्तेजित होने लगती है और उसकी चूत पानी छोडने लगती है. वो आदमी झुक कर अपना मुँह सायरा की चूत पर रख देता है और सायरा हैरान हो जाती है क्यों की उस मर्द की शकल उसके अब्बा से मिलती है.

ओह्ह्ह अब्बू आप? आप यहाँ क्या कर रहे हैं? जानते नहीं मैं नंगी हूँ? आप अम्मी के पास जाएँ. अपनी बेटी के साथ कोई ऐसा करता है क्या? आह्ह्ह्हह्ह्ह्हह…अब्बू नहीं……..ऊऊओह्ह्ह्हह…अब्बू!!!!”

वो मर्द सायरा की चूत पर ज़ुबान फेरता हुआ बोला॥ बेटी तू ही तो मेरा प्यार है. तेरी अम्मी से निकाह तो मैंने इसलिए किया था की तुझे पैदा कर सकूँ. बेटी तेरे साथ तो मैंने ज़िन्दगी बितानी है तुझे अपनी बीवी बना के रखना है. तेरी ये रेशमी चूत मेरे लिए ही तो बनी है. तेरा ये मखमली बदन मेरे लिए ही तो है. तेरी चूत का ये अमृत मेरे लिए ही तो है बेटीईईईईईई।

“नहींईईईईईईईईईईईईईईईईईई….अब्बू ये गुनाह है…………………..आप जाईये अब्बू!!”

सायरा चिल्लाई और उसकी आँख खुल गयी. उसका जवान जिस्म पसीने से नहाया हुआ था और उसकी चूत से पानी टपक रहा था. उसने जब हाथ लगा कर देखा तो चूत पानी से पूरी भीगी हुई थी जैसे कोई उसकी चूत को चाट कर गया हो. सायरा के जिस्म में एक सिरहन उठी और चूत में एक जवाला.

अब्बू जान से बेटी चुद गयी
सायरा – ओह्ह्ह्ह ये कैसा ख्वाब था? मेरे अब्बा? ओह्ह्ह मेरी आग शांत कर दो मुझे अब्बू जैसा लंड मेरी चूत में पिलवा दो!”

वो उठी और पानी पीने जाने लगी. अब्बू के रूम से आवाज़ें सुन कर रुक गयी. लो मेरा लंड बेटी ले लो अब्बू का लंड मेरी बेटी. तेरा अब्बू भी झड़ने वाला है बेटी. चोद ले अपने अब्बू को। सायरा आवाज़ सुन कर पागल हो गयी. लेकिन असल में अब्बू अम्मी की बात सुन कर और भी परेशान हुई. Abbu se chudai ki kahani

क्या अब्बू सच में अम्मी को “बेटी” मज़ाक से कह रहे थे?

लेकिन कुछ भी हो जब से सायरा ने अब्बू का लंड अम्मी की चूत में जाता हुआ देखा तो सायरा की चूत की आग और भी भड़क गयी. उस रात उसने ऊँगली से काम चलाना चाहा, लेकिन सायरा की आँखों के सामने तो अब्बू का लंड घूम रहा था। पूरी रात उसने छटपटा कर काटी. और सुबह से ही स्कीम बनाने लगी की किस तरह वो अम्मी की सौतन बन सके और अब्बू की बीवी. उसके बाद मै बहुत से लड़को और बुड्ढे से चुदी हु अपने बगल के शर्मा जी से उनके 3 बेटों से और अपने कालेज के बहुत से लड़को से भी चुदी हु रंडी बन बन कर
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#20
पार्ट 14

मेरी अप्पी मेरे सामने मेरे काफिर दोस्तों से चुदी



:- हेलो दोस्तों! मेरा नाम आमिर है! और मै आपके लिए एक सच्ची कहानी लेकर आया हूँ। ये कहानी नहीं बल्कि एक घटना है जो मेरे और मेरी बहन के साथ घटी। असल मे मैं अपनी बहन की चुदाई करना चाहता था और इसके लिए मैंने एक प्लान बनाया था। लेकिन वो प्लान उल्टा पड़ गया और मेरी बहन मुझसे ना चुदकर दूसरों से चुद गयी। तो चलिये आपको ज्यादा बोर ना करते हुए आता हूँ अपनी कहानी पर।

दोस्तों मेरी फॅमिली में अबू है जो दिल्ली में जॉब करते है और मेरी अम्मी एक हाउस वाइफ है। मेरी एक अप्पी है जिसका नाम सोनिका है। वो एमए कर रही है। मेरी उम्र 21 साल है तो मेरी बहन की उम्र 25 साल है। उसका फिगर 32-30-34 है। मैंने जब से सेक्स स्टोरी पढ़ना शुरू किया है। तब से मेरे मन में अपनी बहन को चोदने का ख्याल आने लग गए है। मैं बस ये ही सोचता रहता था की कैसे सोनिका अप्पी को चोदा जाये।




अप्पी एक दिन मुझसे बोली अप्पी – आमिर मैं बहुत मोटी हो रही हूँ और मेरी कमर भी कितनी भारी हो गयी है। तू अपनी तरह मेरी कमर करवा दे बस।

मैं – अप्पी इसमे बहुत मेहनत लगती है।

अप्पि– कोई बात नही मैं जितनी मेहनत चाहिए होगी, करुँगी।

फिर मेरे मन में एक अप्पी सोनिया को चोदने का एक प्लान आया पर उसके लिए मुझे अपने दोस्तों भी शामिल करना जरुरी था। क्योकि अकेले में प्लान कामयाब नहीं हो पाता और मुझे अप्पी को बस कैसे भी चोदना था। मेरे ज्यादा दोस्त तो नहीं थे पर कुछ थे जिनके साथ मैं सिगरेट पीने जाता था। उनमें से लगभग सभी दोस्त बस मेरी अप्पी को सेट करने के लिए मेरे साथ घूमते थे। जोकी मुझसे काफी बड़े भी थे। उनमें से एक जय था। जो काफी मस्कुलर था और एक गौरव जो हम सबमें सबसे रिच था। पर उसे इसका जरा सा भी घमंड नहीं था। तो मैंने इन दोनों दोस्तों को इसलिए लिया था। क्योकि गौरव के फार्म हाउस पर उसका पर्सनल जिम है फिर मैंने उन दोनों को सोनिका अप्पी को चोदने का प्लान बताया तो वो दोनों बहुत खुश हो गए।

फिर मैं बोला – सालो कोई गड़बड़ नहीं होनी चाहिए। फिर मैंने बोला कि जय ट्रेनर की एक्टिंग करेगा जो हम दोनों को जिम ट्रेनिंग देता है और बहुत मॉडल्स को भी ट्रेन कर चुका है, ठीक है? अब मैं अप्पी से बात करके तुम्हे बताता हूँ की कब से जिम स्टार्ट करना है। 



फिर मैंने घर आ कर अप्पी से कहा की मेरा एक दोस्त बहुत अच्छा ट्रेनर है। और वो बहुत सी मॉडल्स को भी ट्रेन कर चुका है। और मैंने आपकी बात उससे कर ली है वो आपको भी एक दम मॉडल जैसा स्लिम बना देगा और हमे कोई फीस भी देनी नहीं होगी। ये सुन कर अप्पी खुश हो गयी और वो बोली..

अप्पी – अम्मी नहीं जाने देगी।

मैं – आप कह देना की कंप्यूटर की कोचिंग लेनी है।

अप्पी – झूठ बोलना ठीक नहीं है।

मैं – ठीक है आपकी मर्जी आपको ही स्लिम होना है, ये सब फ्री था इसलिए मैंने आपको बता दिया और वैसे वो बहुत अच्छा ट्रेनर है।

अप्पी – ठीक है मैं अम्मी से बात करके आती हूँ।

फिर अप्पी अम्मी से बात करने चली गयी और थोड़ी देर बाद वो खुश कर आयी और बोली।

अप्पी – कल से मैं भी चलूंगी।

फिर मैंने ये बात गौरव और जय को बता दी। अब बस हम कल का इंतज़ार कर रहे थे। नेक्स्ट डे शाम को मैं और अप्पी गौरव के फार्महाउस पर गए और प्लान के हिसाब से मैंने उन्हें मिलवाया की ये गौरव मेरा दोस्त है। और ये ट्रेनर जय है। फिर जय ने एक्टिंग करते हुए हमे कुछ एक्सरसाइज बताई और उसे करने को हमे कहा। अप्पी तो जय को घूरे ही जा रही थी क्योकि उसकी बॉडी बहुत ज्यादा अच्छी थी। 



जय – सोनिका तुम यहाँ आओ और बैठो तुम्हे कैसे वर्कआउट करना चाहिए और तुम्हे कैसी बॉडी चाहिए मुझे बताओ।

अप्पी – मुझे मॉडल्स की तरह बॉडी शेप चाहिए एक दम स्लिम एंड फिट।

जय – बहुत मेहनत लगेगी पर डोंट वरी मैंने बहुत मॉडल्स को ट्रेन किया है। और तुम्हे भी अच्छी शेप वाली मॉडल बना दूंगा पर तुम इन कपड़ो में वर्क नहीं कर सकती। इसलिए तुम्हे शॉर्ट्स और स्पोर्ट ब्रा चाहिए।



अप्पी – वो तो मेरे पास नहीं है।

जय – ऐसे तो शेप और ख़राब हो जाएगी और स्ट्रेचिंग भी नहीं हो पायेगी।

अप्पी – तो अब मैं क्या करूँ?

जय – तुमने ब्रा और पैंटी तो पहनी है ना?

अप्पी – हाँ।

जय – तो टेंशन की बात नहीं है तुम ये कपडे निकाल दो और पैंटी ब्रा में स्टार्ट करो।

अप्पि– आप सबके सामने?

जय – ये तुम्हारा भाई और उसका फ्रेंड है। और बाकि पब्लिक जिम में तो 50-60 लोग होते है और गर्ल्स वहां जिम करती है। अगर तुम्हे यहाँ भी प्रॉब्लम है तो तो रूम में चलते है।

फिर अप्पी और जय एक रूम में जाते है और जय बोला – चलो अब यहां ठीक है?

अप्पी – आपके सामने?

जय – मैंने कितनी मॉडल्स को न्यूड देखा है और उन्हें मसाज भी दी है। और तो और न्यूड वर्कआउट भी करवाया है तुम्हे शर्माना है तो तुम अभी जाओ और हमेशा मोटी रहना तुम्हे मैं ऐसे ट्राई नहीं कर सकता।

अप्पी – नो सर सॉरी मैं नहीं शर्माउंगी।

जय – पक्का? क्योकि आगे मसाज जब देनी पड़ेगी या न्यूड भी होना पड़ेगा तब तो तुम नहीं शर्माओगी?

अप्पी – न्यूड बस आपके सामने ही तो होना है ना?

जय – हाँ बाबा ट्रेन भी तो मैं ही करूँगा ना तो बस आप को मेरे सामने ही न्यूड होना पड़ेगा। तुम्हे तो मैं एक सुपर सेक्सी फिगर वाली मॉडल बना दूंगा।

अप्पी – ठीक है मैं अब नहीं शर्माउंगी बस आप मुझे स्लिम कर दो।

जय – चलो अब कपडे उतारो।

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अप्पी ने अब अपना सूट उतार दिया अब वो सिर्फ वाइट ब्रा और पैंटी में खड़ी थी। मैं और गौरव ये सब वेंटीलेटर से छुप कर देख रहे थे। अब जय अप्पी को नार्मल एक्सरसाइज करा रहा था और इसी बहाने वो अप्पी को टच कर रहा था।

जय – सोनिका तुम्हारे हिप्स को बाहर होना चाहिए और पेट एक दम स्लिम एंड ब्रैस्ट को एक दम टाइट होना चाहिए। जैसे जीरो फिगर आएगा और बॉडी शेप में दिखेगी। appi ki chudai ka video bana

अप्पी – तो आप करवा दीजिये मैं बहुत मेहनत करुँगी।

जय – तुम्हारे बूब्स का साइज क्या है?

अप्पी – 32।

जय – इन्हे 34 का होना चाहिए तभी अच्छी बॉडी शेप में आ पायेगी। और मुझे इनकी शेप भी ठीक नहीं लग रही है।

अप्पी – साइज कैसे बढ़ेगा और ये शेप किसी होनी चाहिए?

जय – वो सब मैं कर दूंगा और शेप एक दम राउंड और टाइट होनी चाहिए।

अप्पी – हाँ आप पूरी बॉडी की शेप अच्छी करवा दो।

जय – वो तो मैं करवा दूंगा पर मुझे अभी की शेप पता होनी चाहिए। तभी तो मैं इन्हे सही शेप में ट्राई कर पाउँगा।

अप्पि– हाँ तो आप अभी देख लो और बता दो किसी होनी चाहिए।

जय – तुम्हारे बूब्स मुझे लूस लग रहे है।

अप्पी – लूस मतलब?

जय – बूब्स ऐसे होने चाहिए जो बिना ब्रा के भी लटके नहीं और गलत ब्रा से वेट बढ़ने से शेप बिगड़ जाती है।

अप्पी – मुझे तो इतना सब नहीं पता।

जय – अच्छा अब पहले मैं तुम्हारी अभी की शेप अच्छे से देख लू और मैं उसका मीसरमेंट भी ले लेता हूँ। और फिर सही से उस पर काम शुरू करते है।

अप्पी – हाँ ये ठीक है।

अब यहाँ से हमारा मैं प्लान शुरू होता है क्योकि हमने उस रूम में हिडेन कैमरा लगाए हुए थे। जिसमे एचडी रिकॉर्डिंग हो रही थी।

जय – तो अब पहले ऊपर से शुरू करते है तुम अपनी ब्रा निकाल दो। मैं तुम्हारे बूब्स को देखता हूँ की ये लटके तो नहीं है?

अप्पी थोड़ा हिचकिचाती है।

जय – मैंने पहले ही कहा था की तुम एक दम ओपन माइंड हो जाओ या मोटी ही रहो।

अप्पी इतना सुनते ही अपनी ब्रा निकाल देती है। अब उनके बूब्स एक दम कडक थे। जिन्हे देखते ही मेरा लंड खड़ा हो जाता है।

जय – वाओ ब्यूटीफुल बूब्स है बस इनका थोड़ा सा साइज बढ़ाना है। और उनकी एक शेप एक दम राउंड करनी है।

अप्पी – अब मैं ब्रा पहन लू?

जय – चेक आराम से होता है और अब पैंटी भी निकालो अब मैं तुम्हारी हिप्स भी देखूंगा।

अप्पी पैंटी भी निकाल देती है और बिलकुल नंगी हो जाती है। दोस्तों उन्होंने शायद चूत शेव नहीं की थी। तो उनकी चूत एक दम चिकनी और लाइट गुलाबी थी।

जय – तुम्हारे हिप्स को बाहर निकालने पढ़ेगा और फिर बस शेप एक दम परफेक्ट हो जाएगी।

अप्पी सोनिया – हाँ सर अब और कुछ चेक करना है क्या?

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जय – हाँ तुम्हारे बूब्स की टाइटनेस चेक करनी है अगर कम टाइट होंगे तो मैं इसकी एक्सरसाइज भी करवाऊंगा।

फिर वो अप्पी के पीछे जा कर खड़ा हो जाता है और जानबूझ कर अपना लंड अप्पी की गांड की दरार में चिपका कर खड़ा होता है। फिर वो अप्पी के दोनों बूब्स अपने हाथो में भर लेता है और उन्हें दबाने लग जाता है। फिर धीरे धीरे वो अपनी उंगलियों से अप्पी के निप्पल्स को रब करता है अप्पी को जय का लंड और ये सब बहुत अजीब लग रहा था।
अप्पी – सर हो गया अब तो ना?

जय – सोनिका तुम्हारे बूब्स बहुत अच्छे है।

और अप्पी अब जय से अलग हो जाती है और वो बोली..

अप्पी – सर अब आप एक्सरसाइज कब करवाओगे? अब तो सब चेक हो गया है?

जय – पहले तुम मेरे लंड की टाइटनेस चेक कर लो।

अप्पी – ये क्या बदतमीज़ी है सर।

जय – बदतमीज़ी तो की ही नहीं है अभी तक मैंने।

अप्पी अपनी ब्रा पैंटी पहन कर बाहर आने लगती है।

जय – एक मिनट कुछ देर रूक जाओ।

फिर जय उसे हाईड कैमरा निकाल कर दिखाता है और वो अप्पी के न्यूड बूब्स दबाता हुए वीडियो दिखाता है।

अप्पी – प्लीज सर ये डिलीट कर दीजिये।

जय – जरूर कर दूंगा पर जैसे मैं कहूं तुम वैसे वैसे करो तो ही डिलीट करूंगा। मैं ये वीडियो तुम्हारे मम्मी पापा को सेंड करूँ और उसके बाद तुम्हारे पूरे कॉलेज में सब तुम्हे नंगा देख कर मुठ मारेगें।

अप्पी – सर प्लीज मैं बर्बाद हो जाउंगी।

फिर वो रोने लग गयी।

जय – पहले रोना बंद करो और किसी भी चीज़ को अगर माना किया तो मैं ये डायरेक्ट सेंड कर दूंगा।

अप्पी – ठीक है सर जैसे आप कहोगे मैं वैसे ही करुँगी।

दोस्तों ने मेरे सामने मेरी अप्पी की सील तोड़ी

ये सुनकर मैं और गौरव बहुत खुश हए और अब बस जय को अप्पी की आँखों पर पट्टी बांधनी थी। जिससे मैं उन्हें चोदूँ तो उन्हें पता ना चले की मैं इस प्लान में शामिल हूँ। जय अप्पी को नंगा करके अप्पी को अपना लंड चूसने को कहता है और अप्पी भी चुपचाप उसका लंड मुँह में ले कर चूसने लगती है। और वो इस चुसाई का भी वीडियो अपने मोबाइल बना लेता है। और पहले वाले कैमरा को तोड़ देता है। ये वीडियो वो अपने मोबाइल में बना लेता है और वो बोला..

जय – साली अब मेरे पास तेरा ये वीडियो भी है अब चुपचाप मेरे साथ मेरे घर चल।

अप्पी – बाहर भाई।आमिर है।

जय – उससे कहना की मेरे साथ तुम एक मॉडल से मिलने जा रही हो तो वो कुछ नहीं कहेगा।

अब हम कुछ बोल भी नहीं सकते थे क्योकि उसके पास मेरी अप्पी का वीडियो था। मैं बोलता तो अप्पी को ये भी पता चल जाता की मैं भी इस प्लान में शामिल हूँ। अब वो बाहर आये और अप्पी बोली..

अप्पी – मैं सर के साथ एक मॉडल से मिलने जा रही हूँ।

गौरव – मैं कार से ले कर चलता हूँ।

जय – ठीक है।

Appi ki chudai dekhi

और अब मुझे पता चल गया की इन दोनों ने ये प्लान मिल कर बनाया था, ताकि वो दोनों मिलकर मेरी अप्पी को चोद सके। और मुझे मेरी अप्पी चोदने को न मिले। अब वो तीनो बाहर चले जाते है और मैं भी जल्दी से उनके पीछे जाता हूँ। वो हमारे कॉलेज के पीछे वाली ओल्ड बिल्डिंग में जाते है और मैं भी दूसरे रूम के वेंटीलेटर से झांक कर अंदर देखता हूँ। जय अपने एक दोस्त को कॉल करता है और बोला..

जय – भाई अभिषेक आजा एक माल है।

वो थोड़ी देर में आया और जय अप्पी से बोला..

जय – चल अब हम सब के कपडे निकाल। अप्पी चुपचाप उन सब के कपडे निकाल देती है और सब नंगे हो जाते है। गौरव – चल अब नंगी हो जा।

अप्पी सोनिया – प्लीज मुझे जाने दो।

जय – मादरचोद होती है नंगी या सेंड करूँ तेरी वीडियो सब को।

अप्पी फिर चुपचाप नंगी हो जाती है।

गौरव – यार ये कितना मस्त माल है। यार ये कैमरा ऑन कर और इसकी वीडियो बना साली की। जय फिर कैमरा निकाल कर वीडियो ऑन करके रख देता है।

गौरव – चल अब मेरा लंड चूस साली आमिर की अप्पी

अप्पी चुपचाप गौरव का लंड चूसने लगती है। जब वो झड़ने वाला होता है तो वो अप्पी में मुँह में अपना पानी निकाल देता है। अप्पी उसे थूकने वाली होती है तभी गौरव बोला।

गौरव – साली चुपचाप पी ले मेरा।

अप्पी सारा पानी पी जाती है और फिर वो अभिषेक का लंड चूसती है और गौरव अप्पी के बूब्स मुँह में ले कर चूसता है। वो बेदर्दी से अप्पी के निप्पल्स को बाईट करता है और दोनों बूब्स को निचोड़ देता है।

जय – गौरव भाई कुछ हमारे लिए भी छोड़ दे। और अप्पी सोनिया के बूब्स पर निशान पड़ जाते है और गौरव बोला..

गौरव – चल अब बेंच पर लेट जा कुतिया।

फिर अप्पी लेट जाती है और फिर गौरव अपना लंड अप्पी की चूत पर रख कर धक्का मारता है। पर उसका लंड अंदर नहीं जाता क्योकि अप्पी अभी तक वर्जिन थी। appi ki chudai ka video bana

अप्पी की चुदाई की विडियो

गौरव – साली ये तो कच्ची कली है मजा आ जायेगा।

फिर वो थूक लगा कर जोर से धक्का मारता है और अपना आधा लंड वो अप्पी की चूत में डाल देता है। अप्पी की बहुत जोर से चीख निकल जाती है।

गौरव – अभिषेक साली के मुँह में लंड ठूंस।

अभिषेक अपना लंड फिर अप्पी के मुँह में डाल देता है।

गौरव – साली बहुत टाइट माल है। जय तू भी आजा और इसकी गांड में लंड डाल दे।

फिर जय अप्पी की गांड में थूक लगा कर तेज़ से धक्का मार कर अपना लंड अप्पी की गांड में डाल देता है। अप्पी की हालत अब ख़राब हो रही थी पर गौरव बुरी तरह से अप्पी को चोद रहा था। जय पीछे से अप्पी की गांड मार रहा था। फिर जब उनका पानी निकल गया तो अभिषेक ने अप्पी को चोदा और गौरव ने अप्पी की गांड मारी। फिर ऐसे ही जय ने अप्पी को चोदा और सब ने अपना अपना माल अप्पी की चूत में निकाल दिया। फिर गौरव ने अप्पी को उनकी चुदाई की वीडियो दिखाई और वो बोला..

गौरव – देख रानी अब तू रोज़ अपने भाई के साथ मेरे फार्म हाउस पर आएगी और सीधे रूम में जाएगी। और मैं जिससे कहूंगा उससे तुझे चुदना ही पड़ेगा वार्ना मैं ये वीडियो सब को दिखा दूंगा। तेरी एक भी दिन एब्सेंट नहीं होनी चाहिए समझी।

उसके बाद से मैं रोज अप्पी सोनिया के साथ वहां जाता हूँ और अप्पी को नए नए लड़को से उस रूम में चुदते हुए देखता हूँ। मुझे इस चीज़ का पछतावा हो रहा था की मैंने ये सब प्लान बनाया था और मैं ही अपनी अप्पी को चोद नहीं पा रहा था। और तो और मेरी अप्पी मेरी वजह से इस चंगुल में फंस गयी थी। पर मैंने हार नहीं मानी और फिर मैंने अप्पी को चोदने का एक प्लान बनाया। इस बार मैंने उसमे किसी को भी शामिल नहीं किया और मैंने आराम से अप्पी को चोदा। उसके बाद।मै रोज हि अपनी अप्पी को चोदने लगा और मेरी अप्पी अब अपने कॉलेज मे बहुत से लड़के से चुद चुकी है अब लंड बिना अप्पी रह हि नही पाती एक बात तो अम्मी से रामलाल अंकल से चुदते हुए पकड़ लिया था ।।। पर जायदा दिक्क़त नही हुयी क्यून अम्मी फातिमा खुद हि रामलाल से चुदती हुयी आ रही थी अब अम्मी और सोनिया दोनो साथ मे भी रामलाल अंकल से चुदती थी मै भी अपने अप्पी को चोंदता हु
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