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Adultery // किरायेदार का काला मोटा सांप जैसा लण्ड लिया // completed
#5
फिर क्या था, अंधे को जैसे दो आँखें मिल गई हो, अंकल ने पहले भाभी की साड़ी को खोला फिर पेटीकोट को खोल दिया, फिर ब्लाउज को खोल दिया | अब भाभी केवल ब्रा और पैंटी में थी | अंकल भाभी के ब्रा और पैंटी में उनके गदराये हुए गोरे-गोरे जिस्म, बड़े बड़े मुम्मे और चौड़ी मस्त गांड को देख करके एकदम सन्न रह गये, और अपने लंड को आगे-पीछे हिलाने लगे |


भाभी- अंकलजी, मुझे ब्रा और पैंटी में देख कर आप अपने लंड को क्यों हिला रहे हैं?

रवि - बेटी, तुम्हारे इतने सुन्दर जिस्म को देख के मैं अपने आपको नियंत्रित नहीं कर पा रहा हूँ.

भाभी- अंकलजी, मुझे आपके इरादे नेक नहीं लग रहे हैं, कहीं आप मेरे साथ चुदाई करने को तो सोच नहीं रहे हैं |
रवि - नहीं बेटी, मुझे गलत मत समझो, मैं तो केवल तुम्हारी योनि का निरीक्षण करना चाहता हूँ |

भाभी- ठीक है अंकलजी, कीजिये | फिर अंकल ज्यों ही भाभी का पैंटी खोलने लगे तो भाभी ने शर्म से अपनी हाथों से अपने चेहरे को छिपा लिया | पैंटी उतारने के बाद रवि भाभी की गोरी-गोरी, बिना बालों की एकदम चिकनी और एकदम पाव की तरह फूली हुई मस्तानी चूत को देख कर उनकी आँखें एकदम फटी की फटी रह गई |

रवि ने भाभी के कोमल योनि को सहलाते हुए बोला- बेटी, तुम्हारी योनि तो अत्यंत ही सुन्दर है, तुम्हारा पति तो अत्यंत ही भाग्यशाली व्यक्ति है | रवि के योनि सहलाने से भाभी के जिस्म में एकदम करंट सा दौड़ गया | फिर भाभी ने कहा- अंकलजी, अब आप मेरी योनि को देख के बताईये कि यह कसी हुई है या खुली हुई है?

रवि - बेटी, ऐसे देखने से पता नहीं चलेगा, तुम्हे बिस्तर पर लेटा कर तुम्हारी योनि को चीर के देखना पड़ेगा | ऐसा कह कर रवि अंकल ने भाभी को अपने दोनों हाथों से उठा के बिस्तर पर लेटा दिया और फिर भाभी की दोनों टांगों को एकदम से फैला दिया | फिर अंकल ने भाभी के योनि के दोनों फांकों के चीर के देखा, बीच का भाग एकदम गुलाबी था फिर रवि अंकल ने भाभी की चूत को सूँघ करके उसकी मादक खुशबू को लिया फिर उसे चूम लिया |

भाभी- अंकलजी, अपने मेरी योनि पर चुम्बन क्यों लिया?

रवि - बेटी, किसी सुन्दर चीज़ का चुम्बन लेना कोई अपराध है क्या? मैं तुम्हारे साथ सम्भोग थोड़े न कर रहा हूँ |
भाभी-- ओ के, अंकलजी! फिर अंकल ने भाभी के पाव जैसे फ़ूली हुई योनि को अपने दोनों हाथों से चीर के उसके बीच के गुलाबी भाग को अपने जीभ से कुत्ते की तरह चाटने लगे, इधर भाभी के मुँह से आनन्द भरी सिसकारी निकलने लगी | अंकल के भाभी के चूत को चाटे जाने से भाभी की चूत से मलाई निकलना शुरू हो गया, जिसे अंकल प्यार से चाट-चाट कर खाने लगे | भाभी की मुँह से सी-सी की आवाज़ निकल रही थी | थोड़ी देर के बाद भाभी ने अंकल से कहा- अंकलजी, अब जल्दी सा मेरी चूत का निरीक्षण करके बतलाइये कि मेरी चूत कसी हुई है या ढीली है?

यह सुनकर रवि ने चूत की मलाई खाना छोड़ कर भाभी की दोनों टांगों को फैला कर उनकी चूत को चीर कर उसका निरीक्षण करने लगे | थोड़ी देर के बाद अंकल बोले- बहू, ऐसे तुम्हारी चूत को चीर कर देखने से पता नहीं चल रहा है, तुम्हारी चूत के छेद पर पर मुझे अपने लंड का सुपारा को रगड़ कर चेक करना पड़ेगा | भाभी- ठीक है अंकलजी, पर मेरी चूत के अन्दर आपका लंड नहीं जाना चाहिए |

रवि - नहीं बेटी बिल्कुल अन्दर नहीं जायेगा, मैं पूरी सावधानी बरतूँगा | ऐसा बोल कर रवि ने भाभी के चूत के दोनों गुलाब की पँखुरी जैसे चूत के होंठो को फैला कर अपने लंड का सुपारा को रगड़ने लगे | अंकल भाभी के चूत के पूरी फाँक पर ऊपर से नीचे तक अपने सुपारे को रगड़ रहे थे | भाभी भी मस्ती में आकर आह-ऊहह करने लगी | भाभी को मस्ती में आया देखकर के अंकल ने भाभी से कहा- बेटी, केवल रगड़ने से कुछ पता नहीं चल रहा है, तुम्हारी चूत में केवल अपना सुपारा घुसा के चेक करूँ क्या? मैं तुम्हें चोदूँगा नहीं |

भाभी- ठीक है अंकलजी, पर मेरी चूत के अन्दर आपका लंड नहीं जाना चाहिए |

रवि - नहीं बेटी बिल्कुल अन्दर नहीं जायेगा, मैं पूरी सावधानी बरतूँगा | ऐसा बोल कर अंकल ने भाभी के चूत के दोनों गुलाब की पँखुरी जैसे ओठों को फैला कर अपने लंड का सुपारा को रगड़ने लगे | अंकल भाभी के चूत के पूरी फाँक पर ऊपर से नीचे तक अपने सुपारे को रगड़ रहे थे | भाभी भी मस्ती में आकर आह-ऊहह करने लगी | भाभी की चूत ने पानी छोड़ना शुरू कर दिया था |

भाभी को मस्ती में आया देखकर के अंकल ने भाभी से कहा- बेटी, केवल रगड़ने से कुछ पता नहीं चल रहा है, तुम्हारी चूत में केवल अपना सुपारा घुसा के चेक करूँ क्या? मैं तुम्हें चोदूँगा नहीं | ऐसा सुनकर भाभी ने कहा- ठीक है अंकलजी, पर आप अपना लंड सुपारे से ज्यादा आगे मत घुसाना |

फिर अंकल ने भाभी की टांगों को फैला दिया और उससे कहा- बहू, अपनी चूत को जरा अपनी दोनों हाथों से खोलो क्योंकि तुम्हारा छेद अत्यंत तंग लग रहा है |

ऐसा सुनकर भाभी ने अपनी दोनों हाथों से अपनी चूत को चीर के उसे फैला दिया, फिर अंकल ने भाभी की चूत में उंगली घुसा के उसकी थोड़ी सी मलाई निकली और अपने भयंकर सुपारा पर लगाया | फिर अंकल ने भाभी की चूत पर अपना सुपारा रख के उसे धकेला तो सुपारी भाभी की कसी हुई चूत में नहीं घुसा तो अंकल ने भाभी के चूतड़ को अपने दोनों हाथों से पकड़ कर थोड़े जोर से धक्का दिया तो अंकल का विशाल सुपारा भाभी की चूत की दोनों कोमल होठों को बेरहमी से रौंदता हुआ अन्दर घपाक से घुस गया और दर्द के मारे भाभी के मुँह से उईईईइ माँ की आवाज़ निकल पड़ी |

रवि ने कहा- बेटी, डरो नहीं, अब और दर्द नहीं होगा | ऐसा बोलकर अंकल भाभी के नाजुक चूत में धीरे-धीरे अपना सुपारा अन्दर-बाहर करने लगे | भाभी की छोटी सी तंग चूत में घुसा हुआ अंकल का विशाल सुपारा का नजारा देखने में बहुत अजीब सा लग रहा था, लग रहा था जैसे कि भाभी की चूत फट जाएगी | अंकल का सुपारा अन्दर-बाहर हो रहा था और भाभी कराहें ले रही थी | फिर थोड़ी देर के बाद भाभी की कराहट सिसकारी में बदल गई, लग रहा था कि भाभी को अब मजा आने लगा था |

थोड़ी देर के बाद भाभी ने मस्ती में अपने चूतड़ को थोड़ा ऊपर उठा दिया तो अंकल का थोड़ा सा लंड और अन्दर घुस गया | भाभी की चूतड़ को ऊपर उठाते देख कर अंकल समझ गए कि निशा पूरी मस्ती में आ गई है अब यह मेरा पूरा लंड खा जाएगी | फिर अंकल ने सोचा कि इस तरह उसकी चूत में पूरा लंड घुसाने से कहीं वो मुझ पर चोदने का कोई इल्ज़ाम न लगा दे अतः रवि अंकल ने कहा- बेटी, ऐसे मुझे तुम्हारी चूत का निरीक्षण करने में दिक्कत हो रही है इसलिए मैं बिस्तर पर लेट जाता और तुम मेरे लंड पर बैठ कर अपनी योनि में केवल मेरा सुपारा घुसा के उसे अन्दर-बाहर करना तो मुझे तुम्हारी चूत के बारे में अच्छा से पता चल जायेगा |

निशा भाभी की वासना जागृत हो चुकी थी, भाभी बिस्तर से खड़ी हुई और अपनी चूचियों को ब्रा से आजाद कर दिया | अंकल भाभी के बड़े-बड़े, सुडौल चूचों को देख कर एकदम दंग रह गये | भाभी जब बाथरूम जाने के लिए मुड़ी तो उसके अत्यन्त बड़े चूतड़ों को देख कर अंकल के दिल धड़कन अचानक बढ़ गई | भाभी जब बाथरूम से आई तो अंकल ने कहा- बेटी, चूचियों को दबाने से चूत का मुँह थोड़ा फ़ैल जाता है, जिससे चूत में आसानी से लंड के सुपारे का प्रवेश हो जायेगा |

यह सुनकर भाभी ने कहा- ठीक है अंकलजी, आप मेरी चूचियों को दबा लीजिये पर इसे आप ज्यादा जोर से मत दबाइयेगा क्योंकि ये बहुत ही टाइट हैं, जोर से दबाने से दर्द होने लगता है |

रवि - ठीक है बेटी, आराम से दबाऊंगा | फिर अंकल ने भाभी से कहा- बेटी, तुम अपने चूतड़ों की दोनों फाँकों को फैला कर मेरे गोद में मेरे लंड पर बैठ जाओ, फिर मैं तुम्हारी चूचियों को दबाऊँगा | ऐसा सुनकर भाभी अपने विशाल चूतड़ों को चीर कर उसे अंकल के मोटे लंड पर रखकर गोद में बैठ गई | अब अंकल आगे अपने हाथ बढ़ा कर अपने सामने आम के जैसे लटक रहीं भाभी की चूचियों को दबाना शुरू कर दिया, उनके निप्पलों को चुटकी से मसलना शुरू कर दिया |

भाभी ने मस्ती में अपनी आँखें बंद कर ली और मीठी-मीठी कराहें लेने लगी | फिर अंकल भाभी को अपने गोद में आमने-सामने बिठा कर उनकी निप्पल को चुसना शुरू कर दिया | भाभी तो मानो आनन्द के सागर में गोते लगा रही थी | निशा भाभी की चूचियों को कुछ देर तक दबाने के बाद अंकलजी ने निशा से कहा- बेटी, अब मैं लेट जाता हूँ और तुम मेरे लंड पर बैठ जाओ और फिर मैं तुम्हारी चूत का निरीक्षण करता हूँ, बेटी मेरे लंड पर सावधानी से बैठना, केवल सुपारा ही अपने चूत में घुसाना |

इसके बाद अंकल लेट कर अपने खड़े लंड को सीधा करके अपनी हाथों से पकड़ लिया, निशा भाभी ने अपनी चूत की संकरे से छेद को अंकल के भयंकर सुपारा पर रख कर धीरे से बैठ गई, अंकल का मोटा सुपारा भाभी की चूत को फैलाता हुआ उसमें घुस गया तो अंकल ने कहा- बहू, अब तुम अपने कूल्हों को धीरे-धीरे ऊपर-नीचे करो तो मैं पता करता हूँ कि तुम्हारी चूत कितनी टाइट है |

भाभी धीरे-धीरे अपनी गांड को ऊपर-नीचे करने लगी, तभी अंकल ने पूछा- बेटी, दर्द नहीं न हो रहा है?
भाभी- नहीं अंकलजी!

रवि - बेटी गांड को ऊपर-नीचे करने में करने में कैसा लग रहा है है?भाभी ने शरमाते हुए कहा- अंकलजी, अच्छा लग रहा है |

// सुनील पंडित // yourock
मैं तो सिर्फ तेरी दिल की धड़कन महसूस करना चाहता था
बस यही वजह थी तेरे ब्लाउस में मेरा हाथ डालने की…!!!
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RE: // किरायेदार का काला मोटा सांप जैसा लण्ड लिया // completed - by suneeellpandit - 15-06-2021, 02:47 PM



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